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आबात : इस पेज़ पर आपको शिवाजी महाराज द्वारा मुगल सुबेदार शाइस्तां ख़ान (शैस्ता खान) पर रात को अचनचेत किए गए हमले विदियोस के लिंक मिलेगें। सन १६५९ में औरंगज़ेब ने शिवाजी पर काबू पाने के लिए अपने मामा शाइस्ता खां को दक्षिण का सूबेदार नियुक्त किया। शाइस्ता खां ने १६६० के आरंभ में शिवाजी के विरूद्ध मुहिम शुरू की। शाइस्ता खां ने अपनी डेढ़ लाख फौज़ लेकर पूरे तीन साल तक शिवाजी के राज्य में लूटमार की और उज़ाड़ कर तबाह कर दिया। उस समय शिवाजी की सेना बहुत कम थी इसलिए शाइस्तां खां का ठीक तरह से मुकाबला नहीं कर पाई। सन १६६३ में जब शिवाजी को पता चला कि शाइस्तां ख़ान अपनी एक लाख फौज़ के साथ पुणे के लाल महल रूका हुआ है तो शिवाजी ने उसे सबक सिखाने की ठान ली। एक बात यह भी ध्यान में रखने लायक है कि शिवाजी ने अपने बच्चपन और जवानी का काफी सारा समय पुणे के लालमहल में ही गुजारा था, इसलिए वो महल के कोने-कोने से वाकिफ़ थे। ६ अप्रैल 1६६3 के दिन शिवाजी अपने चुने हुए एक हज़ार साथियों के साथ पुणे पहुँच गए। फिर शाम हुई तो शिवाजी महाराज अपने चुने हुए एक हज़ार में से ४०० सिपाहियों को लेकर शाइस्तां ख़ान के डेरे की ओर चल पड़े। रास्ते में मिलने वाले पहरेदारों को उन्होंने बताया कि वो मुगल फौज़ के सिपाही ही हैं और अपनी नियुक्ती के संबंध में निर्देश लेने जा रहे है। शाइस्तां ख़ान के डेरे में पहुँचकर पहले तो उन्होंने कुछ देर आराम किया। रात के समय पहले तो शिवाजी अपने चुने हुए साथियों के साथ शाइस्तां खां के हरम में घुस गए और उसे ढुंढने लगे। शिवाजी के बाहर खड़े साथियों ने पहरेदारों को मार दिया। इतने में मची अफ़रा-तफ़री से शाइस्तां खां सावधान हो गया, पर इतने में शिवाजी शाइस्तां खां के सिर पर पहुँच चुके थे। शाइस्तां ख़ान की बेगमों ने हरम के लैंप बुझा दिए। जब शिवाजी ने शाइस्तां ख़ान पर वार किया तो वो खिड़की से बचकर भाग गया। शिवाजी महाराज ने जोर से उस पर वार भी किया था, लेकिन इससे शांइस्तां ख़ान के हाथों की केवल ऊंगलिया ही कटी थी। शिवाजी ने अपने साथियों को वापिस जाने का निर्देश दे दिया। मुगल सैनिकों को यह पता ही नही लग पा रहा था कि दुश्मन कहां है, ना ही उन्हें इस बात का पता चला कि शिवाजी के सैनिक कब वापिस चले गए। शिवाजी के द्वारा इस अचनचेत किए गए हमले में मराठो के सिर्फ ६ सैनिक मरे और कुछ ही घायल हुए, जबकि शैस्ता खान के दो बेटों समेत उसके कई सैनिक मारे गए। इसके बाद शाइस्तां ख़ान अपनी पूरी फौज़ लेकर दिल्ली भाग गया और औरंगजेब ने उसे झाड़ लगाई और बंगाल का सूबेदार नियुक्त कर दिया।
नयी दिल्ली। सेंसेक्स की शीर्ष दस कंपनियों में से नौ का बाजार पूंजीकरण (एम-कैप) बीते सप्ताह में १.४७ लाख करोड़ रुपए बढ़ गया। रिलायंस इंडस्ट्रीज और टीसीएस के एमकैप में सर्वाधिक वृद्धि दर्ज की गई। इंफोसिस को छोड़कर शेष सभी नौ कंपनियों का बाजार पूंजीकरण शुक्रवार को समाप्त सप्ताह में बढ़ा है। रिलायंस इंडस्ट्रीज लिमिटेड का बाजार पूंजीकरण सबसे ज्यादा ३९,८७६.४४ करोड़ रुपए उछलकर ८,९७,१७९.४७ करोड़ रुपए पर पहुंच गया। रिलायंस इंडस्ट्रीज नौ लाख करोड़ रुपये का बाजार पूंजीकरण हासिल करने वाली पहली भारतीय कंपनी बन गई है। बंबई शेयर बाजार में शुक्रवार को दिन में कारोबार के दौरान कंपनी का बाजार पूंजीकरण नौ लाख करोड़ रुपये के ऊपर पहुंच गया था। टीसीएस का बाजार पूंजीकरण २६,३७९.२७ करोड़ रुपए बढ़कर ७,७1,९९६.८७ करोड़ रुपए और हिंदुस्तान यूनिलीवर लिमिटेड का एम-कैप २१,९६२.०२ करोड़ उछलकर ४,५५,९५२.७2 करोड़ रुपए हो गया। एचडीएफसी बैंक का एम-कैप १६,७६७.८९ करोड़ रुपए चढ़कर ६,७२,4६६.३० करोड़ रुपए और एचडीएफसी का एम-कैप १४,७२8.६६ करोड़ रुपए की तेजी के साथ ३,६1,८०१.९७ करोड़ रुपए पर पहुंच गया। भारतीय स्टेट बैंक (एसबीआई) का बाजार पूंजीकरण 1३,५२१.१५ करोड़ रुपए और आईसीआईसीआई बैंक का पूंजीकरण ६,04६.१६ करोड़ रुपए चढ़कर क्रमश: २,४०,६5२.१५ करोड़ रुपए और २,8२,78३.३9 करोड़ रुपए हो गया। कोटक महिंद्रा बैंक का पूंजीकरण ५,२२३.९३ करोड़ रुपये की बढ़त के साथ ३,०८,५५५.५२ करोड़ रुपए और आईटीसी का एम-कैप २,९४८.७५ करोड़ रुपए चढ़कर ३,0२,८६१.९८ करोड़ रुपए हो गया। इसके विपरीत, इंफोसिस का बाजार पूंजीकरण २0,५94.७ करोड़ रुपए गिरकर ३,२9,७५१.८८ करोड़ रुपए रह गया। बाजार पूंजीकरण के लिहाज से शीर्ष दस कंपनियों में रिलायंस पहले पायदान पर रही। इसके बाद टीसीएस, एचडीएफसी बैंक, हिंदुस्तान यूनिलीवर, एचडीएफसी, इंफोसिस, कोटक महिंद्रा बैंक, आईटीसी, आईसीआईसीआई बैंक और एसबीआई का स्थान है। बीते सप्ताह के दौरान सेंसेक्स १,१७१.३0 अंक यानी ३.0७ प्रतिशत बढ़ा।
न्यूयॉर्क में प्रियंका चोपड़ा ने मनाई होली... रंग दिया सबको | वेब्दुनिया हिन्दी न्यूयॉर्क में प्रियंका चोपड़ा ने मनाई होली... रंग ... मंगलवार, १४ मार्च २०१७ (१६:१५ इस्ट) प्रियंका चोपड़ा भले ही विदेश में हों, लेकिन होली के त्योहार पर वे धूम मचाना नहीं भूली। उन्होंने अपने अपार्टमेंट में दोस्तों के साथ होली का त्योहार मनाया और विदेशियों को भी भारतीय त्योहार के रंग में रंग दिया। न्यूयॉर्क में टीवी होस्ट जिमी फेलन को उनके चैट शो में जाकर ही प्रियंका ने रंग दिया। इस शो में प्रियंका तीसरी बार नजर आईं। " ); भगवान चित्रगुप्त की कृपा पाने के लिए आज अवश्य पढ़ें ये मंत्र... सपा-कांग्रेस की हार से लालू दुखी, नहीं मनाई होली आगरा में विदेशी पर्यटकों ने भी खेली होली प्रियंका चोपड़ा क्वांटिको होली कुआंटिको प्रियंका चोपड़ा जिमी फैलन विगेट्स मगजीन विगेट्स मगजीन खबर-संसारसमाचार राष्ट्रीयअंतरराष्ट्रीयप्रादेशिकमध्यप्रदेशनोटबंदीपर्यावरणआतंकवादआईना २०१६नरेन्द्र मोदीबिहार विधानसभा चुनाव २०१५दिल्ली विधानसभा चुनाव २०१५विधानसभा चुनाव २०१७ उत्तरप्रदेशपंजाबउत्तराखंडगोवामणिपुरबजट २०१७-१८करियर करियर स्पेशलसमाचारगुरु-मंत्रआलेखशासकीय अवसरविदेशों में शिक्षाकरियर विकल्पप्रवेश अवसरमनपसंद करियरव्यापार समाचारशेयर बाजारफाइनेंशियल प्लानिंगबजट २०१७-१८आईटी आईटी खबरलर्निंग झोनमोबाइल मेनियाप्रोडक्ट वॉचखोज-खबर ज्ञान-विज्ञानरोचक-रोमांचकऑटो मोबाइल ऑटो रिव्यूसमाचारऑटो प्रीव्यूखेलक्रिकेट क्रिकेट समाचारक्रिकेट आलेखक्रिकेट स्कोरकार्डविश्वकप २०११आईपीएल २०१५क्रिकेट टिकरवर्तमान/पिछली श्रृंखलाएँअन्य खेल रियो ओलंपिक २०१६समाचारआलेखफोटो गैलरी सिनेमाअभिनेत्रीअभिनेताधर्म संसारविविधपर्यटनसमाचारखेलसेवाएँ रिजल्टवेबदुनिया खोजयुटिलिटीजक्विज़ मनोरंजनवेबदुनिया यूट्यूबबॉलीवुड मिर्च मसालाफिल्म समीक्षाआने वाली फिल्ममुलाकातहॉलीवुड सेफोकसआलेखएड्रेस बुकगीत-गंगाफिल्मोग्राफीखुल जा सिम सिमसिने-मेलसलमान खानशाहरुख खानबॉलीवुड २०१६टीवी आलेखटीवी टाइमसमाचारगुदगुदी चुटकुलेदद्दू का दरबारहास्य व्यंग्यकचरे का डिब्बाव्हाट्स एप की दुनियापर्यटन ताज़ा खबरपहाड़ों की गोद मेंसागर किनारेदेश-विदेशधार्मिक स्थलमध्यप्रदेशवन्य-जीवनधर्म-संसारज्योतिष ज्योतिष २०१७आलेखतंत्र-मंत्र-यंत्रजन्मदिनआज का मुहूर्तदैनिक राशिफलजन्मकुंडलीपत्रिका मिलानरामशलाकाटैरो भविष्यवाणीचौघड़ियाराशियाँसितारों के सितारेनक्षत्रनवग्रहरत्न विज्ञानवास्तु-फेंगशुईज्योतिष सीखेंश्रीमद्भगवद्गीताश्रीरामचरितमानसव्रत-त्योहार रक्षा बंधननागपंचमीजन्माष्टमीगणेशोत्सवनवरात्रिराम नवमीश्राद्ध पर्वविजयादशमीदीपावलीइस वर्ष के व्रत-त्योहारकरवा चौथमहाशिवरात्रिक्रिसमसगुरु नानक जयंतीईदमकर संक्रांतिगुड़ी पड़वावसंत पंचमीहोलीबुद्ध जयंतीअन्य त्योहारआरती/चालीसाएकादशी व्रत कथामहावीर जयंतीसत्यनारायण व्रतकथाजय हनुमानश्रीमद्भगवतगीताश्रीरामचरितमानसरमजानआस्था और अंधविश्वास आलेखऐसा भी होता है!धर्म यात्रा आलेखधर्म दर्शन हिन्दू धर्मआलेखश्रीमद्भगवद्गीताश्रीरामचरितमानसपौराणिक कथाएंईसाई धर्मजैन धर्मतंत्र-मंत्रधार्मिक स्थलध्यान व योगप्रवचनबौद्ध धर्मसंत-महापुरुषइस्लाम धर्मसिख धर्मअन्य धर्मसमाचारसनातन धर्म आत्माआलेखइतिहासनीति नियमपरमात्माब्रह्मांडमहापुरुषवेदसिंहस्थ २०१६ सिंहस्थ समाचारसिंहस्थ आलेखसिंहस्थ इतिहासप्रमुख धार्मिक स्थलप्रमुख अखाड़ेसिंहस्थ दान८४ महादेवलाइफ स्टाइलसेहत सेहत समाचारसेक्स लाइफयूँ रहें स्वस्थघरेलू नुस्खेजडी-बूटियाँजान-जहानआयुर्वेदआहारयोग आलेखध्यान योगप्राणायामयोग मुद्रायोगासनन्री न्री कॉर्नरव्रत-त्योहारन्री न्यूजभारतीय जायकान्री सिनेमाएस्ट्रोलॉजीधर्म-संस्कृतिआपकी कलमव्यंजन भारतीय व्यंजनमीठे पकवानलो कैलोरी फूडउपवास के पकवानकुकिंग टिप्समाँसाहारी व्यंजनकॉन्टिनेंटल फूडनायिका महिला दिवसब्यूटी केयर टिप्सडोर रिश्तों कीआप और आपका घरफैशनचाइल्ड केयरनायिका स्पेशलआलेखस्त्री-अधिकारऊँची उड़ानइतिहास निर्मात्रीरूबरू साक्षात्कारनन्ही दुनिया कहानीकवितानिबंधक्या तुम जानते हो?सिंहासन बत्तीसीअकबर बीरबल की किस्सेतेनालीराम की कहानियांप्रेरक व्यक्तित्वचिट्ठी-पत्रीहँसगुल्लेअजब-गजबबाल दिवसटीचर्स डेसाहित्य आत्मकथाआलेखव्यंग्यकाव्य-संसारपुस्तक-समीक्षाकथा-सागरमील के पत्थरमंच अपनामुलाकातपत्रिकाएँक्या पढ़े?संस्मरणनीरजसंगतहिन्दी दिवसस्वामी विवेकानंदविजयशंकर की कविताएँआमीन - आलोक श्रीवास्तवहरिवंशराय बच्चनमेरा ब्लॉगउर्दू साहित्य नई शायरीशेरो-अदबआज का शेरमुलाकातग़ालिब के ख़तहमारी पसंदमजमूननज़्मरोमांस प्रेम गुरुप्रेम-गीतइजहार-ए-इश्कहँसगुल्ले इश्क केपाती प्रेम कीप्रेम कथाएँहिन्दी सीखें हिन्दी का इतिहासहिन्दी आलेखहिन्दी वर्णमालाहिन्दी व्याकरणहिन्दी एक नजर मेंहिन्दी पर विद्वानों के विचारहिन्दी के लेखकहिन्दी कहावतें और मुहावरेसामयिकसंपादकीयविचार मंथनओशो वाणी१०वां विश्व हिन्दी सम्मेलनबीबीसी हिंदीडॉयचे वेलेबहसपोलमीडिया दुनियावेबदुनिया के १५ वर्षसंस्कृत संस्कृत सीखेंसंस्कृत सुभाषितगीता के प्रमुख श्लोक एवं भावार्थसंस्कृत के पौराणिक मंत्रसमाचारभारत का संविधान मुख पृष्ठ
हिंगोली जिला महाराष्ट्र के जिलों में एक जिला है, हिंगोली जिला, यह महाराष्ट्र के औरंगाबाद मंडल के अंतर्गत आता है, इसका मुख्यालय हिंगोली है, जिले में कुछ वित्त विभाग है ५ तहसीलें है, ३ उपमंडल है और ३ विधान सभा कॉन्टिनू रिडिंग गोंदिया जिला महाराष्ट्र के जिलों में एक जिला है, गोंदिया जिला, यह महाराष्ट्र के नागपुर मंडल के अंतर्गत आता है, इसका मुख्यालय गोंदिया है, जिले में कुछ वित्त विभाग है ८ तहसीलें है, ४ उपमंडल है और ४ विधान सभा कॉन्टिनू रिडिंग वाशिम जिला महाराष्ट्र के जिलों में एक जिला है, वाशिम जिला, यह महाराष्ट्र के अमरावती मंडल के अंतर्गत आता है, इसका मुख्यालय वाशिम है, जिले में ६ तहसीलें है, २ उपमंडल है और ३ विधान सभा क्षेत्र जो की वाशिम कॉन्टिनू रिडिंग पुरी जो की उड़ीसा के जिलों में एक जिला है, इसका मुख्यालय पुरी है, जिले में १ उपमंडल है ११ तहसीलें है, ११ ब्लॉक, और ६ विधान सभा क्षेत्र है, और १ लोकसभा क्षेत्र के अंतर्गत आता है। पुरी जिला कॉन्टिनू रिडिंग जाजपुर जो की उड़ीसा के जिलों में एक जिला है, इसका मुख्यालय जाजपुर है, जिले में १ उपमंडल है १0 तहसीलें है, और ७ विधान सभा क्षेत्र है, और १ लोकसभा क्षेत्र के अंतर्गत आता है। जाजपुर जिला जाजपुर जिले कॉन्टिनू रिडिंग केंद्रपाड़ा जो की उड़ीसा के जिलों में एक जिला है, इसका मुख्यालय केंद्रपाड़ा है, जिले में १ उपमंडल है ९ तहसीलें है, और ५ विधान सभा क्षेत्र है, और १ लोकसभा क्षेत्र के अंतर्गत आता है। केंद्रपाड़ा जिला केंद्रपाड़ा जिले कॉन्टिनू रिडिंग भद्रक जो की उड़ीसा के जिलों में एक जिला है, इसका मुख्यालय भद्रक है, जिले में १ उपमंडल है ७ तहसीलें है, और ५ विधान सभा क्षेत्र है, और १ लोकसभा क्षेत्र के अंतर्गत आता है। भद्रक जिला भद्रक जिले कॉन्टिनू रिडिंग नुआपाड़ा जो की उड़ीसा के जिलों में एक जिला है, इसका मुख्यालय नुआपाड़ा है, जिले में १ उपमंडल है ४ तहसीलें है, ४ ब्लॉक, और २ विधान सभा क्षेत्र है, और १ लोकसभा क्षेत्र के अंतर्गत आता है। नुआपाड़ा जिला कॉन्टिनू रिडिंग कलाहन्डी जो की उड़ीसा के जिलों में एक जिला है, इसका मुख्यालय भवानीपटना है, जिले में २ उपमंडल है १३ तहसीलें है, और ५ विधान सभा क्षेत्र है, और १ लोकसभा क्षेत्र के अंतर्गत आता है। कलाहन्डी जिला कलाहन्डी जिले कॉन्टिनू रिडिंग गोवा, भारत में कोंकण का समुद्र तटीय राज्य है, जिसके एक तरफ महाराष्ट्र है और दूसरी तरफ कर्नाटक और पश्चिमी तरफ अरब सागर है, गोवा भारत देश का पर केपिटा जीडीपी में मामले में सबसे धनि राज्य है, गोवा को कॉन्टिनू रिडिंग
देहरादून : यमुना नदी में गिरा वाहन, दो की मौत | एत्व उत्तराखंड देहरादून : यमुना नदी में गिरा वाहन, दो की मौत विकासनगर, सोमवार देर शाम को विकासनगर से लावड़ी लाखामंडल के लिए एक यूटिलिटी वाहन रवाना हुआ. हत्यारी के पास अचानक अनियंत्रित होकर यमुना नदी में जा गिरा. इस दौरान वाहन चालक ने वाहन से कूदकर अपनी जान बचाई. सूचना पर देर रात पुलिस और सर्फ की टीम मौके पर पहुंची, लेकिन अंधेरा ज्यादा होने के कारण रेस्क्यू अभियान नहीं शुरू हो पाया. सुबह होते ही पुलिस और सर्फ की १३ जवानों की टीम ने मौके पर पहुंचकर रेस्क्यू अभियान शुरू कर दिया है. घटना स्थल से दो शव बरामद किए जा चुके हैं. जबकि अन्य की तलाश की जा रही है. वहीं घायल वाहन चालक को इलाज के लिए विकासनगर सीएचसी में भर्ती कराया गया है. वहीं पूरे घटना पर क्रम पर आलाधिकारियों की नजर बनी हुई है. शासन-प्रशासन के अधिकारी घटना स्थल पर मौजूद अधिकारियों से पल-पल की जानकारी ले रहे हैं. देवभूमि समिति धूमधाम से मनायेगा प्रथम स्थापना दिवस चंद्रभागा नदी के किनारे से हटाई गईं २६१ अवैध झोपड़ियां
१०वीं के बाद क्या करें ? पढ़ें ये पूरी खबर... | टो न्यूज १०वीं कक्षा के नतीजे जारी होने के साथ ही छात्र विषय चयन को लकर भी जागरूक हो गए है. कई छात्र अपनी रुचि के अनुसार विषय का चयन कर लेते है, वहीं कई छात्र विषय का चयन आसानी से नहीं कर पाते है. ऐसे में आपके लिए ये खबर काफी लाभदायक हो सकती है. आपने अगर १०वीं पास कर ली है और आप आगे विषय का चयन करने में सक्षम नहीं है, तो आप हमारे द्वारा बताए जा रहे कोर्सेस पर अवश्य ध्यान दें विज्ञान के क्षेत्र में करियर बनाने के लिए अवसरों की कमी नहीं है. इसके लिए आवश्यक है उच्च स्तर की मेहनत. बायोलॉजी के अंतर्गत फिजिक्स, केमिस्ट्री और बायोलॉजी विषय आते है. साथ ही हिंदी और इंग्लिश जो कि कॉमन सब्जेक्ट है, वे भी आते है. बायोलॉजी की सहायता से आप चिकित्सा के क्षेत्र में काफी अच्छा नाम कमा सकते हैं. इसके अंतर्गत आप डॉक्टर, हॉस्पिटल मैनेजमेंट, बायो केमिस्ट्री, केमिकल, डिफेन्स, रिसर्चर, वैज्ञानिक और शिक्षा के क्षेत्र में करियर बना
सरकारी स्कूल में छात्राओं को बांटे सेनेटरी पैड राजकीय उच्च विद्यालय सोतई में 'बदलाव हमारी कोशिश' ट्रस्ट की प्रधान सुषमा यादव ने गांव के सरपंच गोली के परिवार की महिलाओं को लेकर छात्राओं शहर में लगाई जाएगी सेनेटरी पैड की मशीन चन्दौसी: नगर के गौशाला रोड स्थित एक रैस्टोरैन्ट में रविवार की रात वर्ष २०१९ की पहली बैठक का आयोजन किया गया। डॉ. पूनम सह की अध्यक्षता, मुख्य राजस्थान के सरकारी कॉलेजों में छात्राओं को नि.शुल्क सेनेट्री पैड उपलब्ध कराए जाने की पहल की गई है। जयपुर स्थित राजस्थान विश्विघालय में यह सुविधा प्रारम्भ कर दी गई है। आदिवासी महिला ने खोला अनोखा बैंक, यहां नि:शुल्क मिलते हैं सैनिटरी पैड्स अनोखे बैंक, इस बैंक में आदिवासी महिलाओं और युवतियों को माहवारी में काम आने वाले सैनिटरी पैड्स नि:शुल्क मिलेंगे। ये हैं हरियाणा की पैड वुमन, पत्नी के हौसले को देख पति भी साथ में कर रहे कदमताल कविता न सिर्फ सेनेटरी पैड को लेकर महिलाओं को जागरूक करती हैं, वरन वे खुद पैड बनाकर इसका कारोबार करती हैं। आज वो महिलाओं के बीच पैड वुमन के नाम से प्रसिद्ध हैं। मिशन सच्ची सहेली के तहत सरकारी स्कूल की छात्राओं को बांटे सेनेटरी पैड जागरण संवाददाता, अंबाला शहर जिला युवा विकास संगठन की महिला इकाई ने जिला अंबाला में चलाए पुष्पा ने झिझक छोड़ सेनेटरी पैड का रोजगार चुना फोटो नंबर---४१ हिमांशु गोयल, जींद : जब गांव में सेनेटरी पैड बेचने का कार्य शुरू किया शौचालय के प्रयोग संग सेनेटरी पैड पर जागरूकता जरूरी स्वच्छ भारत मिशन ग्रामीण के तहत एक दिवसीय माहवारी स्वच्छता प्रबंधन कार्यशाला जिलाधिकारी प्रकाश बदु की अध्यक्षता में कलेक्ट्रेट सभाकक्ष में हुई। इसमें जिलाधिकारी द्वारा बताया गया कि शौचालय के प्रयोग के साथ ही गांव में महिलाओं, किशोरियों को माहवारी में सेनेटरी नैपकिन के प्रयोग पर ध्यान देने व एक कदम और आगे बढ़ते हुए प्रयोग हेतु जानकारी दें। स्वच्छ भारत मिशन ग्रामीण के तहत एक दिवसीय माहवारी स्वच्छता प्रबंधन कार्यशाला जिलाधिकारी प्रकाश बदु की अध्यक्षता में कलेक्ट्रेट सभाकक्ष में हुई। इसमें जिलाधिकारी द्वारा बताया गया कि शौचालय के प्रयोग के साथ ही गांव में महिलाओं, किशोरियों को माहवारी में सेनेटरी नैपकिन के प्रयोग पर ध्यान देने व एक कदम और आगे बढ़ते हुए प्रयोग हेतु जानकारी दें। कार्यशाला में जिला विकास अधिकारी विजय शंकर राय द्वारा महिला अध्यापक से स्कूल में आने वाली किशोरियों को जागरूक करने हेतु स्वच्छता अभियान में जोड़ने की बात कही गई। पूर्वी सिंहभूम की इस मुहिम को लिम्का बुक ऑफ रिकार्डस में मिली जगह, जानिए जमशेदपुर की सामाजिक संस्था निश्चय की माहवारी स्वच्छता जागरूकता मुहिम को लिम्का बुक ऑफ रिकार्डस में भी जगह मिल गई है। जीएसटी कार्यालय पांच जिलों में लगाएगा सेनेटरी पैड मशीन जागरण संवाददाता, रोहतक : जीएसटी आयुक्तालय रोहतक अब नौ जिलों में विशेष अभियान चलाएगा। अभी सेनेटरी पैड मिलने पर छात्राओं के कपड़े उतरवाने के मामले में स्कूल हेड व अध्यापिका सस्पेंड स्कूल के बाथरूम में सेनेटरी पैड मिलने पर छात्राओं के कपड़े उतरवाकर तलाशी लेने के मामले में जांच पूरी होने के बाद स्कूल हेड व आरोपित टीचर को सस्पेंड कर दिया गया है। बाथरूम में सेनेटरी पैड मिला तो छात्राओं के कपड़े उतरवा ली तलाशी, सीएम ने दिए जांच के आदेश स्कूल के बाथरूम में सेनेटरी पैड मिला तो एक महिला अध्यापिका ने लड़कियों के कपड़े उतरवा कर उनकी जांच करवाई। यह आरोप छात्राओं ने लगाए हैं। न पैडमैन न पैडवूमैन, आइआइटी के पैड स्टूडेंट्स कहिए जनाब आइआइटियन की पूरी टीम गांव-देहात की किशोरियों, युवतियों और महिलाओं को इस मुद्दे पर जागरूक कर रही है। जो नारी शक्ति को जागरूक करने के साथ निशुल्क पैड बांटती है। छात्राओं को निशुल्क मिलेगा सेनेटरी पैड गाजीपुर : छात्राओं के स्वास्थ्य सुरक्षा के लिए राजकीय महिला पीजी कालेज में सेनेटरी नैपकिन वेंडग मशीन स्थापित की गई है। यह मशीन एटीएम विधि पर संचालित होती है। 'पैडवुमन' बनी बिहार की यह युवती, ऐसे चला रही स्वच्छ बेटी, स्वस्थ समाज की मुहिम बिहार के दरभंगा जिले की रहने वाली अनुपम झा स्वच्छ बेटी स्वस्थ समाज मुहिम के जरिए छात्राओं को सेनेटरी नैपकिन के प्रयोग के लिए जागरूक बना रही हैं। सोशल मीडिया पर भी उनकी मुहिम चल रही। मॉडर्न जेल में महिला कैदियों को बांटे सेनेटरी पैड सहाकरिता व जेल मंत्री पंजाब सुखजदर सह रंधावा व एडीजीपी जेल आइपीएस सहोता के योग मार्ग दर्शन में मार्डन जेल कपूरथला में एक प्रयोग तहत कैदियों को दोबारा प्रयोग में योग सेनेटरी पैड मुहैया करवाए गए। सुप्रीडेंट जेल सुरदर पाल खन् ना की अध्यक्षता में करवाए गए समारोह दौरान इको शी नाम की संस्था की ओर से महिलाओं को इन सेनेटरी पैडों का वितरण किया गया। इस मौके पर संस्था के किरणजीत कौर ने बताया कि संस्था की ओर से जेल में करीब १ कालेज में सेनेटरी पैड बेंडग मशीन लगा कर फायदे गिनाए इनरव्हील क्लब ऑफ चन्दौसी मेन की सदस्याओं ने सोमवार को एनकेबीएमजी पीजी कालेज में सेनेटरी पैड बेंडग मशीन लगा कर छात्राओं को उसके फायदे गिनाए।
होम > उत्पादों > एलईडी स्मार्ट बल्ब (एलईडी स्मार्ट बल्ब के लिए कुल २४ उत्पादों) एलईडी स्मार्ट बल्ब - निर्माता, कारखाने, आपूर्तिकर्ता चीन से हम विशेष हैं एलईडी स्मार्ट बल्ब निर्माताओं और आपूर्तिकर्ताओं / कारखाने चीन से। कम कीमत / सस्ते के रूप में उच्च गुणवत्ता के साथ थोक एलईडी स्मार्ट बल्ब, चीन से अग्रणी ब्रांडों में से एक एलईडी स्मार्ट बल्ब में से एक, ज़ोंगशन एल्मय टेक लिटिंग को., लैड. । थोक चीन से एलईडी स्मार्ट बल्ब , लेकिन कम कीमत के अग्रणी निर्माताओं के रूप में सस्ते एलईडी स्मार्ट बल्ब खोजने की आवश्यकता है। बस एलईडी स्मार्ट बल्ब पर उच्च गुणवत्ता वाले ब्रांडों पा कारखाना उत्पादन, आप आप क्या चाहते हैं, बचत शुरू करते हैं और हमारे एलईडी स्मार्ट बल्ब का पता लगाने के बारे में भी राय, आप में सबसे तेजी से उत्तर हम करूँगा कर सकते हैं।
फादर्स डे के मौके पर रिलीज हुआ फिल्म संजू का नया पोस्टर देखकर हो जाएंगे इमोशनल आज फादर्स डे के मौके पर फिल्म संजू का नया पोस्टर रिलीज किया गया. जिसमे बाप बेटे के बीच की बॉन्डिंग देखते ही बन रही है. रणबीर कपूर और परेश रावल का अंदाज देखने लायक आज फादर्स डे के मौके पर फिल्म संजू का नया पोस्टर रिलीज किया गया. जिसमे बाप बेटे के बीच की बॉन्डिंग देखते ही बन रही है. दरअसल संजय दत्त पर बनी ये बायोपिक २९ जून की सिनेमाघरों में रिलीज होगी. ऐसे में फिल्म के मेकर्स के इसके प्रमोशन में कोई कमी नहीं छोड़ रहे हैं. संजय और सुनील दत्त के रिश्ते की यादें जादू की झप्पी वाले इस पोस्टर ने फिर ताजा कर दी हैं. फॉक्स स्टार ने यह पोस्टर शेयर किया है. आप भी देखिए फिल्म का ये खास पोस्टर. राजकुमार हिरानी द्वारा लिखित और निर्देशित यह बायोपिक रणबीर कपूर, मनीषा कोइराला, परेश रावल, अनुष्का शर्मा, दीया मिर्जा और सोनम कपूर जैसे कलाकारों से लैस है. फॉक्स स्टार द्वारा प्रस्तुत , यह बायोपिक राजकुमार हिरानी द्वारा निर्देशित है. वही विधु विनोद चोपड़ा और राजकुमार हिरानी द्वारा निर्मित यह फ़िल्म २९ जून २०१८ को रिलीज होगी.
बिहार का सबक अभी हाल की घटनाओं पर अगर नेताओं के बयानों को देखें तो उनसे भारतीय राजनीति की विकृत छवि ही सभी के सामने प्रस्तुत होती है। जिन लोगों को देश की एकता, अखंडता और सांप्रदायिक.. जनसत्ता नई दिल्ली | नोवंबर ८, २०१५ ९:३३ प्म अभी हाल की घटनाओं पर अगर नेताओं के बयानों को देखें तो उनसे भारतीय राजनीति की विकृत छवि ही सभी के सामने प्रस्तुत होती है। जिन लोगों को देश की एकता, अखंडता और सांप्रदायिक सौहार्द बनाए रखने के लिए बयान देने चाहिए, वे लोग ही अगर देश की एकता और धर्मनिरपेक्ष छवि को चोट पहुंचाने वाले बयान देंगे तो साधारण लोगों के पास क्या संदेश जाएगा? जिस देश का प्रधानमंत्री अपने देश को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर महाशक्ति का दर्जा दिलाने के लिए प्रयासरत है, अगर ऐसे में ये लोग ऐसे बयान देंगे तो उससे भारत की छवि को अंतरराष्ट्रीय समुदाय में भी गलत संदेश जाएगा। पर ये सब बातें तो उन लोगों को समझनी चाहिए, जो लोग किसी भी मुद्दे को लेकर बेवजह बोलने लग जाते हैं। अभी दादरी की घटना को लेकर नेताओं की जो बयानबाजी सामने आई उससे तो यही अनुमान लगाया जा सकता है कि देश में चाहे कुछ भी हो, लेकिन ये लोग अपनी जबान को लगाम नहीं लगा सकते। उसके बाद इन्होंने गाय के मांस के मुद्दे पर भी मनमाने बयान दिए। इन तमाम बयानबाजियों पर हरियाणा के मुख्यमंत्री से लेकर भाजपा विधायक संगीत सोम, साक्षी महाराज, केंद्रीय मंत्री महेश शर्मा आदि शामिल हैं। भाजपा अध्यक्ष अमित शाह और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी ऐसे बयानों पर ध्यान न देने की जनता से अपील कर चुके हैं, लगता है उसका कुछ असर दिखाई नहीं दे रहा है। हरियाणा में दलित परिवार के घर में आग लगाने जैसी जघन्य घटना को लेकर भी बयानबाजी हुई। अब देखना यह है कि इन बयानबाजियों को रोकने के लिए राजनीतिक दल और सरकार क्या कदम उठाती है, जिससे देश की एकता, अखंडता और धर्मनिरपेक्ष छवि बनी रह सके। (मोहन मीना, बीएचयू, वाराणसी) गरीब तबकों के भोजन में पौष्टिकता की न्यूनतम जरूरत को पूरा करने के मामले में कभी दालों का उदाहरण दिया जाता था। मगर आज पहले ही महंगाई से त्रस्त लोगों को दाल की कीमतों ने जिस तरह परेशान करना शुरू कर दिया है, वह चिंताजनक है। हालत यह है कि दालों की कीमत आबादी के एक बड़े हिस्से की पहुंच से दूर होती जा रही है। अरहर और उड़द की दालें जहां दो सौ रुपए किलो के भाव तक पहुंच गई थी, वहीं मसूर और मूंग की कीमत में भी भारी उछाल आया है। थोक और खुदरा बाजार की कीमतों में तीस-चालीस रुपए का अंतर है। सवाल है कि आखिर यह नौबत क्यों आई कि कम आमदनी वाले लोगों के लिए आज दालें सपना होती जा रही हैं? इसका अंदाजा इससे लगाया जा सकता है कि देश के स्टॉक में कमी के चलते विदेशों से दालों का आयात न हो तो इनकी कीमतें और ऊंची जा सकती हैं। इस स्थिति के लिए दलहन की उपज में लगातार आ रही गिरावट का हवाला दिया जाता है। किसान दलहन की खेती करने से इसलिए हिचकते हैं कि उन्हें वाजिब मूल्य नहीं मिल पाता। यही वजह है कि पिछले करीब बीस सालों से दालों (दलहन) की उपज लगातार कम होती जा रही है और किसान दूसरी नकदी फसलों की ओर रुख कर रहे हैं। सवाल है कि वे कौन लोग या एजेंसियां हैं, जो किसानों से सस्ते दामों पर दालें लेकर बाजार में ऊंची कीमत पर बेचती हैं। किसानों को अपनी उपज की वाजिब कीमत न मिलने और बाजार में कारोबारियों की लूट को खुला छोड़ने वाली सरकारों की क्या कोई जिम्मेदारी नहीं है! (प्रियंका गुप्ता, कवि नगर, गाजियाबाद) सीरिया के राष्ट्रपति बसर अल-असद भी सद्दाम हुसैन की तरह अमेरिका और ब्रिटेन को कम कीमत पर तेल और ठेका देने से आनाकानी कर रहे थे, जो दुनिया के दारोगा को नागवार गुजरा तो उसने पहले सीरिया की असद सरकार गिरानी चाही, उसमें वह सफल न हो सका। पर कुछ लोगों का मानना है कि उसने आइएसआइएस को बढ़ावा देकर आधे से ज्यादा सीरिया पर कब्जा करवा दिया और आइएस द्वारा आधी कीमत पर बेचे जा रहे तेल को अमेरिका और यूरोपीय देश खरीद रहे हैं। जिससे सबसे ज्यादा झटका सऊदी अरब को लगा है, जहां दो साल पहले क्रूड आॅयल एक सौ चार डॉलर प्रति बैरल की दर से दुनिया को बेच रहा था, अब आइएस के चलते छियालीस से अड़तालीस डॉलर प्रति बैरल की अंतरराष्ट्रीय दर चल रही है। इन सब खेलों से साफ हो जाता है कि यह सब तेल का ही खेल है। जिससे कोई इनकार नहीं कर सकता! (राज सिंह रेपसवाल, जयपुर) भारतीय राजनीति में समाजसेवी अण्णा हजारे और दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, नीतीश कुमार आदि कुछ नेताओं के उद्भव के आधार समाजवाद की विकास की अवधारणा से जुड़े हुए हैं। साथ ही भारत में नए राजनीतिक समीकरणों का उद्भव निश्चित रूप से समाजवाद की एक नई सोच को जन्म दे रहा है। इन नेताओं और समाजसेवियों की पूर्व की सफलताओं और विफलताओं के कारण संदेह के बादल कुछ ऐसे व्याप्त हैं, जो कि बार-बार यही सोच रहा है कि समाजवाद की यह नई सोच भारतीय समाज को कितना नफा-नुकसान पहुंचाएगी? (हेमंत कुमार गुप्ता, लखनऊ) भारतीय संस्कृति में हमें बहुत ज्यादा बदलाव देखने को मिल रहे हैं। अगर हम भारतीय संगीत की बात करें तो इसमें भी बहुत फेर-बदल हो रहा है। इन सबसे अगर हम पुरानी फिल्मों की तुलना करें तो तब के संगीत में और आज के संगीत में बहुत अंतर आ चुका है। पुराने गीत जब संगीतकार बनाते थे तो उन गीतों के शब्दों में जिंदगी के सही मायने होते थे। ऐसा लगता था मानो ये गीत कहीं न कहीं हमसे जुड़े हुए हों। पर आज के संगीत में ऐसा कुछ भी सुनने को नहीं मिलता। आज के गीतों में शब्दों से ज्यादा शोर सुनाई देता है। इन गीतों का सही मायने में कोई मतलब ही नहीं होता। गीत में जो शब्द हैं, उनका अर्थ लोगों की समझ से परे है। संगीत का मतलब होता है मधुरता, जो शायद आज हमारा समाज खोता जा रहा है। (सिम्मी कौल, दिल्ली)
मैक एक्सम ऑन : हिन्दी सामान्यज्ञान प्रश्नोत्तरी निम्नलिखित में से किसका प्रयोग करके, हाल ही में शोधकर्ताओं ने गैस फिलामेंट का उपयोग करते हुए दुनिया का सबसे पतला प्रकाश बल्ब बनाया है ? १) >गुरु केलुचरण महापात्र किस नृत्य शैली में निपुण थे ? >जिप्सीयों का मूल निवास स्थान कहां था ? >भारतीय अंतरिक्ष कार्यक्रम का पिता किसे कहा गया है ? >हमारे सौरमंडल का सबसे चमकीला तारा कौन-सा है ? >किस सिख गुरू ने स्वयं को सच्चा बादशाह कहा था ? >भारतीय अर्थव्यवस्था को सबसे अच्छे ढंग से किन शब्दों में व्यक्त किया जा सकता है ? >एक पीढ़ी से दूसरी पीढ़ी में आनुवंशिक गुणों के उत्तरदायी कौन होते हैं ? >भारत का राष्ट्रीय खेल क्या है ? >भारत में समस्त अंतरिक्ष यान प्रचालन का मर्म केंद्र एम.सी.एफ (मास्टर कंट्रोल फेसिलिटी) का मुख्यालय कहां है ? >भारत का प्राचीनतम टूर्नामेन्ट कौन सा है ? >लिंगराज महल कहाँ स्थित है ? >सूर्य का आकार पृथ्वी से कितना बड़ा है ? >खनिज तेल एवं कोयला किन चट्टानों में पाया जाता है ? >भारतीय गैण्डे किस अभयारण्य में पाए जाते हैं ? >टु ए हंगर फ्री वल्र्ड पुस्तक के लेखक कौन हैं ? >विश्व विकास रिपोर्ट किसका वार्षिक प्रकाशन है ? >विश्व में भारतीय रेलवे नेटवर्क की स्थिति कौन से नम्बर पर है ? >भारत का प्रथम गवर्नर जनरल कौन था ? >विक्रम साराभाई सेण्टर द्वारा निर्मित सागा.२२० क्या है ? >किस बन्दरगाह को ऑफ स्प्रिंग ऑफ पार्टीशन कहा जाता है, क्योंकि इसका विकास विभाजन के पश्चात् कराची बन्दरगाह की एवज में किया गया था ? >दिन और रात कहाँ बराबर होते हैं ? >भारत की अपराजिता दत्ता को हॉर्नबिल प्रजाति के पक्षियों के संरक्षण के लिए काम पर ह्निटली पुरस्कार से सम्मानित किया गया है। वह कहां की निवासी हैं ? >कामकाजी महिलाओं के लिए प्रत्यावास योजना किसके द्वारा संचालित की जाती है ? >राजस्थान राज्य की सर्वाधिक लम्बी सीमा किस राज्य के साथ है ? >हमारे सामने विद्यमान सभी मामलों में ड्डषि मामला सबसे पहले आता है। यह कथन किसका है ? >उत्तर प्रदेश कितने न्यायिक जिलों में बाँटा गया है ? >महात्मा गाँधी ने सन् १९३० में सविनय अवज्ञा आन्दोलन कहाँ से आरम्भ किया था ? >वह युक्ति जिसके द्वारा आँकड़ों को टेलीफोन के माध्यम से बाइनरी सिग्नलों की सहायता से भेजा जाता है, क्या कहलाती है ? >ज्वार.भाटा की उत्पत्ति में किसका प्रभाव अधिक होता है ? >भारत में ब्रिटिश शासन की शुरूआत किस लड़ाई द्वारा हुई ? >विलुप्त होती प्रजातियों के बेहतर संरक्षण के लिए साइट्स कोप.१६ सम्मेलन कहाँ सम्पन्न हुआ ? >जर्मन सिल्वर किसका मिश्रण है ? >सरकारिया आयोग का सम्बन्ध किससे है ? >एशियाटिक सोसायटी का संस्थापक कौन था ? >भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस का प्रथम अधिवेशन बिहार में कहाँ सम्पन्न हुआ ? >लहसुन की विशेष गंध किसके कारण होती है ? >भारत में मनोविज्ञान की प्रयोगशाला की सर्वप्रथम स्थापना किस वर्ष हुई ? >किस शासक की मृत्यु पुस्तकालय की सीढि़यों से गिरने के कारण हुई ? >किस मुगल शासक ने अंग्रेजो को भारत में व्यापार करने की अनुमति दी थी ? >भारतीय संविधान की कौनसी विशेषता इंग्लैण्ड से ली गई है ? >उन दो ग्रहों के नाम बताइए, जो पूर्वी आकाश से मार्निंग स्टार और पश्चिमी आकाश से इवनिंग स्टार के रूप में दिखाई देते हैं ? >किस संस्था को भारत के सर्वोच्च न्यायालय ने पिन्जरे में बन्द तोता की संज्ञा दी थी ? >वी द पीपुल नामक प्रसिध्द किताब किसने लिखी ? >डार्विन फिचिंज का प्रयोग किस समूह के लिए किया जाता है ? >एशियाई खेल.२०१४ में कहाँ होंगें ? >ख्वाजा मुईनुद्दीन चिश्ती की दरगाह कहाँ स्थित है ? >गरबा कहाँ का लोकनृत्य है ? >पैगंबर हजरत मोहम्मद साहब का जन्म कहाँ हुआ था ? >अन्तर्राष्ट्रीय ओलम्पिक समिति का मुख्यालय कहाँ है ? >ड्डष्ण.भक्त मीरा का ब्याह किस राजवंश में हुआ था ? >दक्षिण ध्रुव की खोज किसने की थी ? >पूर्व सैनिकों के लिए देश का पहला मल्टीप्लेक्स बिहार के किस जिले में बनेगा ? >राज्यपाल का मुख्य सलाहकार कौन होता है ? >संघ शासित क्षेत्रों/केन्द्रशासित प्रदेशों के लिए प्रशासकों की नियुक्त कौन करता है ? >भारत में १९८३ ई. का प्रूडेन्सियल विश्व कप क्रिकेट किसकी कप्तानी में जीता था ? >स्वतः चालित गाडि़यों में लगे हुए बे्रक में किस प्रकार की व्यवस्था होती है ? >विश्व के सबसे ऊंचे रेल पुल का जम्मू.कश्मीर में निर्माण हो रहा है। यह पुल किस नदी पर होगा ? >हरियाणा में सुविख्यात पक्षी विहार कौन-सा है ? >कंप्यूटर सिस्टम के किस भाग को भौतिक रूप से स्पर्श किया जा सकता है ? >कोनिका कप किस खेल से सम्बन्धित है ? >भारत के प्रथम नोबेल पुरस्कार विजेता कौन थे ? >राज्यों में राष्ट्रपति शासन की अधिकतम अवधि क्या है ? >संसद किसके माध्यम से सार्वजनिक व्यय पर नियन्त्रण रखता है ? >सूक्ष्म विद्युत.धारा का पता लगाने एवं मापन के लिए किस उपकरण का प्रयोग किया जाता है ? >अमृतसर की संधि निम्नलिखित में से किसके और महाराजा रंजीत सिंह के बीच संपादित हुई ? >नीला ग्रह के नाम से कौन जाना जाता है ? >कोलम्बस ने अमेरीका की खोज कब की थी ? >गोलमेज सम्मेलन किसकी संस्तुतियों पर विचार के लिए आयोजित किए गए थे ? >राज्यालय/हड़प नीति/गोद निषेध सिध्दान्त किसके द्वारा लागू किया गया था ? >उत्तर प्रदेश में विकेन्द्रित नियोजन प्रणाली कब शुरू की गई ? >पृथ्वी के अतिरिक्त किस ग्रह पर वायुमण्डल पाया जाता है ? >पुस्तक कामायनी के रचयिता कौन हैं ? >भूमध्य रेखा पर सूर्य वर्ष में कितनी बार सीधा चमकता है ? >सोने की शुध्दता को मापने के लिए कैरेट शब्द का प्रयोग किया जाता है। सोने का शुध्दतम रूप क्या है ? >जो शीघ्र प्रसन्न हो जाए, उसे क्या कहेंगे ? >यद्यपि एक ही समय में कई प्रोग्राम खोले जा सकते हैं, लेकिन कितने प्रोग्राम एक्टिव हो सकते हैं ? >कोणार्क का सूर्य मन्दिर नरसिंह देव प्रथम ने बनवाया था। वे किस राजवंश से थे ? >कोयले की खानों में विस्फोट करने वाली गैस प्रायः कौन सी होती है ? >राज्यसभा का सदस्य बनने के लिए न्यूनतम निर्धारित आयु क्या हैं ? >दोहावली, कवितावली, विनयपत्रिका जैसी भक्ति रचनाएँ किस भक्ति सन्त की हंै ? >पादप, हिरण, भेडि़या व शेर से निर्मित खाद्य-श्रंखला में से ऊर्जा किसमें होगी ? >मानव शरीर में मलेरिया किस जीव के कारण होता है ? >रिक्टर पैमाने द्वारा किसे मापा जाता है ? >भगत सिंह, सुखदेव एवं राजगुरू को फाँसी पर कब चढ़ाया गया ? >बृहस्पति ग्रह सूर्य के चारों ओर अपनी कक्षा में एक परिक्रमा में कितना समय लेता है ? >किस लड़ाई में मुहम्मद गौरी के लिए दिल्ली क्षेत्र खोल दिया ? >विद्युत बल्ब के निर्माण में किन गैसों के संयोजन का प्रयोग किया जाता है ? >शनि के चक्रों की खोज किसने और कब की थी ? >भारत का दक्षिणतम स्थान इन्दिरा प्वाॅइण्ट कहाँ स्थित है ? >ग्रीन पार्क स्टेडियम कहाँ अवस्थित है ? >महात्मा बुध्द को ज्ञान की प्राप्ति कहाँ हुई ? >हीमोग्लोबिन का क्या कार्य है ? >शिवाजी का राज्याभिषेक कब हुआ था ? >वह एन्जाइम जो दूध को दही में समेकित कर देता है ? >डबल फॉल्ट शब्द किस खेल से सम्बन्धित है ? >जूलियस सीजर की हत्या कब हुई थी ? >चण्डीगढ़ का वास्तुविद् ले कोर्बुजिया किस देश का नागरिक था ? >उत्तर प्रदेश में सबसे अधिक पुराना विश्वविद्यालय कौन-सा है ? >एक रुपये के नोट पर किसके हस्ताक्षर होते हैं ? >राष्ट्रीय ड्डषि विपणन केन्द्र कहाँ स्थित है ? >पृथ्वी की कितने प्रतिशत अनियमित सतह पानी से घिरी हुई है ? >भारत के किस राज्य की जनसंख्या सर्वाधिक है ? >भारत के राष्ट्रपति के चुनाव के लिए नागरिक को कितनी आयु पूरी कर लेनी चाहिए ? >भारत में खुदरा ऋण का सर्वाधिक प्रतिशत किसका है ? >दिल्ली में लाल किला किसके द्वारा बनवाया गया ? >मंत्रीमण्डल सामूहिक रूप से किसके प्रति उत्तरदायी है ? >फुटबॉल में ब्लैक पर्ल के उपनाम से किसे जाना जाता है ? >तेन्दुलकर समिति के द्वारा भारत में गरीबी का कितना प्रतिशत अनुमानित किया गया है ? >लहसुन की विशिष्ट गंध निम्नलिखित में से किस एक के कारण है ? >भारत का प्रथम मुस्लिम शासक कौन था ? >एम.गवर्नेंस को वृहद् स्तर पर लागू करने वाला देश का पहला राज्य कौन-सा है ? >जैन तीर्थंकर श्री महावीर जी का जन्म कहाँ हुआ था ? >शिक्षा का मुख्य कार्य उत्तम नैतिक चरित्र का विकास करना है. उक्त कथन किसका है ? >समुद्र में डूबी वस्तु का पता लगाने के लिए किस यंत्र का प्रयोग किया जाता है ? >नृत्य के मोहिनीअट्टम रूप का विकास कहाँ हुआ था ? >किसी पेड़ की लगभग सही आयु क्या गिनकर ज्ञात की जा सकती है ? >किसी अन्य ग्रह के आकार को मापने वाला पहला व्यक्ति कौन था ? >द लॉस ऑफ इनहेरिटेन्स किसकी ड्डति है ? >जिन्ना एवं तिलक कॉमरेड इन फ्रीडम स्ट्रगल पुस्तक के रचियता कौन हैं ? >उत्तर.पूर्वी रेलवे का मुख्यालय कहां स्थित है ? >ड्डष्णदेव राय द्वारा रचित अमुक्तमाल्यद किस भाषा का ग्रन्थ है ? >सुदीरमन कप किस खेल से सम्बन्धित है ? >कौन सा सागर सबसे लवणीय सागर है ? >विश्व में सबसे लम्बा पौधा कौन-सा है ? >फोटोग्राफी में कौन-सा रासायनिक द्रव्य प्रयोग किया जाता है ? >केन्द्रीय मन्त्रिपरिषद् ने किस तिथि को राष्ट्रीय शहरी स्वास्थ्य मिशन को मंजूरी दी ? >स्वामीनारायण मन्दिर, अक्षरधाम कहाँ स्थित है ? >राष्ट्रपति को पद एवं गोपनीयता की शपथ कौन दिलवाता है ? >नूरजहां का मूल नाम क्या था ? >भारतीय संविधान के किस भाग को उसकी आत्मा की संज्ञा दी गई है ? >जंग से बचाने के लिए लोहे से बने पानी के पाइपों पर जस्ते की परत चढ़ाने को क्या कहते हैं ? >उत्तर प्रदेश में नॉलेज पार्क की स्थापना कहाँ की जा रही है ? >हेमेराइट किसका अयस्क है ? >राज्यसभा के सदस्यों का चुनाव कितनी अवधि के लिए किया जाता है ? >उत्तर प्रदेश का सबसे पुराना इंजीनियरिंग कॉलेज अवस्थित है ? >भारत में कार्यपालिका का अध्यक्ष कौन होता है ? >भारत का राष्ट्रीय खेल क्या है ? >किस वायसराय को भारत में स्थानीय स्वशासन की स्थापना का श्रेय जाता है ? >हिन्दी दिवस किस तिथि को मनाया जाता है ? >एक ही स्थान पर लगने वाले दो महाकुम्भ मेलों के बीच कितना अन्तराल होता है ? >समसूत्री विभाजन के फलस्वरूप कितनी सन्तति कोशिकाओं का निर्माण होता है ? >नेशनल ऑर्डर ऑफ साउथ अफ्रीका पुरस्कार की घोषणा हर वर्ष कब की जाती है ? >किस उच्च न्यायालय द्वारा भारत में बंद आयोजित करने को पहली बार अवैध घोषित किया गया ? >उत्तर प्रदेश में अनौपचारिक शिक्षा योजना शुरू की गई ? >विश्व स्वास्थय संगठन (वो की स्थापना कब हुई ? >होम रूल लीग किसने शुरू की थी ? >किस वर्ष में भारतीय कांग्रेस का गठन हुआ ? >किसके कारण कुहासा होता है ? >थर्मल आयनीकरण के सिध्दांत का प्रतिपादन करने वाले भारतीय वैज्ञानिक कौन थे ? >जिसके पेट पर माँ ने रस्सी बाँधी थी उसे क्या कहते ? मैनेज सर्विसेस बाय: समीक्षा सोफ्त्वार्
चीनी शैली साटन बैग पाउच होम > उत्पादों > चीनी शैली साटन बैग पाउच (चीनी शैली साटन बैग पाउच के लिए कुल २४ उत्पादों) चीनी शैली साटन बैग पाउच - निर्माता, कारखाने, आपूर्तिकर्ता चीन से हम विशेष हैं चीनी शैली साटन बैग पाउच निर्माताओं और आपूर्तिकर्ताओं / कारखाने चीन से। कम कीमत / सस्ते के रूप में उच्च गुणवत्ता के साथ थोक चीनी शैली साटन बैग पाउच, चीन से अग्रणी ब्रांडों में से एक चीनी शैली साटन बैग पाउच में से एक, शेन्ज़ेन प्रिंटिंग गिफ्ट्स पकेजिंग को., लैड.। तग: चीनी शैली साटन बैग पाउच , लाल साटन बैग पाउच , साटन ड्रॉस्ट्रिंग बैग पाउच चीनी शैली लाल साटन ड्राऐट्रींग बैग पाउच वेडिंग साटन बैग, पक्ष के पक्ष में, चीनी शैली लाल साटन ड्राऐट्रींग बैग पाउच स्पर्श आराम से। और लाल साटन ड्राऐट्रींग बैग पाउच टिकाऊ और उत्तम है। रेड साटन ड्रॉस्ट्रिंग बैग पाउच ग्राहक के रूप में उत्पाद बनाने के लिए... थोक चीन से चीनी शैली साटन बैग पाउच , लेकिन कम कीमत के अग्रणी निर्माताओं के रूप में सस्ते चीनी शैली साटन बैग पाउच खोजने की आवश्यकता है। बस चीनी शैली साटन बैग पाउच पर उच्च गुणवत्ता वाले ब्रांडों पा कारखाना उत्पादन, आप आप क्या चाहते हैं, बचत शुरू करते हैं और हमारे चीनी शैली साटन बैग पाउच का पता लगाने के बारे में भी राय, आप में सबसे तेजी से उत्तर हम करूँगा कर सकते हैं।
पोकेमॉन गो के अनुसार क्रिसमस! वीडियो गेम के बारे में बात करते हैं होम समाचार दूसरा पोकीमोन जाओ! दूसरा पोकीमोन जाओ! क्या आपने कभी सोचा है कि स्वाद पोकेमोन ने क्या किया? मुझे नहीं लगता है कि, लेकिन शायद स्टारबक्स: पॉक्स्टॉप में अपनी कैफे चालू करने के लिए नियांटिक लैब्स के साथ अनुबंध पर हस्ताक्षर करने के बाद, ८ दिसंबर को एक नया नुस्खा शुरू की, या पोकीमॉन स्वाद फ्रैप्पुकिनो! लेकिन अभी भी इस प्रक्रिया में कोई पिकाचु चोट नहीं पहुंचा था, बल्कि विचार बेकेलहैम्पॉन द्वारा दिया गया था, जिसके बारे में हमारे छोटे दोस्त लालची हैं! नुस्खा में वेनिला, रास्पबेरी सिरप और निर्जलित ब्लैकबेरी का मिश्रण होता है, जो मुलायम व्हीप्ड क्रीम से ढका होता है। वर्तमान में, एक्सएनएएनएक्स पहले ही ग्रीष्मकालीन एक्सएनएएनएक्स मैक डोनाल्ड के जापानी के सहयोग से परीक्षण के बाद, इस पहल में शामिल होने के लिए यूएस स्टारबक्स है। कौन जानता है कि इटली भी भाग लेगा! हालांकि, अगर आप फ्रप्पुक्सिनो के प्रकार नहीं कर रहे हैं या लगता है कि आप बाहर जाते हैं और ठंड के साथ एक प्रयास करने के लिए, पता है कि नियांटिक सब कुछ के बारे में सोचा गया है और नवीनतम अद्यतन सिर्फ तुम्हारे लिए एक अच्छा आश्चर्य जोड़ा गया है, सही प्रेरणा की जरूरत नहीं है। वास्तव में, खेल के विभिन्न पोकीमोन में से एक आ गया है पिकाचु का क्रिसमस संस्करण। यह आराध्य जानवर शहरी केंद्रों, पार्कों या पर्यटन क्षेत्रों में बड़ी मात्रा में होगा। खबरदार, तथापि, हम सुझाव है कि आप बच्चेलमपून और अल्ट्राबाल के साथ खुद को हाथ, क्योंकि जैसा कि पोकीमॉन का स्तर कम लग सकता है, यह नहीं कम करके आंका जा करने के लिए पकड़ है, जो एक काफी अधिक कठिनाई का कहना है। लेकिन निविदा राक्षस में है सीमित संस्करण और केवल कब्जा कर लिया जा सकता है दिसंबर २९ तक। हालांकि, चुप रहो क्योंकि एक बार कब्जा कर लिया पिकाचू हमेशा आपकी टीम का हिस्सा रहेगा। तथ्य यह है अगर आप ५० पिकाचु कैंडी की हिस्सेदारी हासिल करने के लिए पर्याप्त मात्रा में कैप्चर कर सकते हैं, आप यह भी है कि यह एक रायचू एक क्रिसमस टोपी के साथ पूरा में विकसित देख सकता था। पिछला लेखओवरवॉच - क्रिसमस आ रहा है! अगला लेखशुरुआत - अमेज़ॅन प्रधानमंत्री नेटफ़्लिक्स जैसी मुफ़्त वीडियो? एक रेडिटर ने गूगल पर छिपा एक टेक्स्ट एडवेंचर गेम खोजा है माइक्रोसॉफ्ट ने अपने उपयोगकर्ताओं को अपना चेहरा लगाने और लॉन्च करने के लिए कहा ...
यहमददआलेख माइक्रोसॉफ्ट ओनेनोट २०१० मेंसामान्यकार्योंकेलिएकुंजीपटलशॉर्टकट्सकावर्णनकरताहै. येकुंजीपटलशॉर्टकट्सयू.एस. कुंजीपटललेआउटकोसंदर्भितकरतेहैं. अन्यलेआउट्सपरकुंजियाँयू.एस. कुंजीपटलपरकुंजियोंसेसटीकसंगतनहींहोसकतीहैं. ऐसेकुंजीपटलशॉर्टकट्सकेलिए, जिनमेंआपदोयाअधिककुंजियाँसाथ-साथदबातेहैं, कुंजियाँधनचिह्न (+) द्वाराअलगकीजातीहैं. ऐसेकुंजीपटलशॉर्टकट्सकेलिए, जिनमेंआपएककुंजीदबानेकेबादतुरंतदूसरीकुंजीदबातेहैं, कुंजियोंकोअल्पविराम ( , ) द्वाराअलगकियाजाताहै. नोट होसकताहैकिआपइसआलेखकेसबसेहालकेसंस्करणकोनदेखें. यदिइसविंडोकेसमीपनीचेस्थितिपट्टीऑफ़लाइनकहतीहैतोअपनेकंप्यूटरकोइंटरनेटसेकनेक्टकरें, मददव्यूअरमेंऑफ़लाइनबटनक्लिककरेंऔरतबशॉर्टकटमेनूपरऑफिस.कॉम सेसामग्रीदिखाएँक्लिककरें. वैकल्पिकरूपसे, ऑफिस.कॉम परजाएँऔर माइक्रोसॉफ्ट ओनेनोट २०१० मददएवंनवीनतमदस्तावेज़ीकरणकेलिएकैसेकरेंपृष्ठ, देखें. साइडनोटबनानेकेलिएकोईछोटी ओनेनोट विंडोखोलें. नोट चयनकाक्षेत्रबढ़ानेकेलिएएकसेअधिकबार क्ट्र्ल+आ दबाएँ. किसीनोट, टैबयाअन्यऑब्जेक्टकेलिएवहसंदर्भमेनूलाएँ, जिसनेवर्तमानमेंफ़ोकसकियाहै. वर्तमाननोटपरशीर्षक १ शैलीलागूकरें. वर्तमाननोटपरशीर्षक २ शैलीलागूकरें. वर्तमाननोटपरशीर्षक ३ शैलीलागूकरें. वर्तमाननोटपरशीर्षक ४ शैलीलागूकरें. वर्तमाननोटपरशीर्षक ५ शैलीलागूकरना. वर्तमाननोटपरशीर्षक ६ शैलीलागूकरें. वर्तमानपृष्ठपरप्रिंटआउट्सकोदिखाएँयाछुपाएँ (जब ओनेनोट उच्चकन्ट्रास्टमोडमेंचलरहाहै). नोट ओनेनोट चिह्नका विंडोज कार्यपट्टीकेबिल्कुलदाएँ, सूचनाक्षेत्रमेंसक्रियहोनाआवश्यकहै. नोट तालिकासमाप्तकरनेकेलिएदूसरीबार एन्टर दबाएँ. एन्टर तालिकामेंवर्तमानरिक्तपंक्तिकोहटाएँ (जबकर्सरपंक्तिकेप्रारंभमेंहै). स्तर १ सेदिखाएँ. स्तर २ तकविस्तृतकरें. स्तर ३ तकविस्तृतकरें. स्तर ४ तकविस्तृतकरें. स्तर ५ तकविस्तृतकरें. स्तर ६ तकविस्तृतकरें. स्तर ७ तकविस्तृतकरें. स्तर ८ तकविस्तृतकरें. स्तर ९ तकविस्तृतकरें. नोट अपनेनोट्सकेलिएलेखनदिशापरिवर्तितकरनेकेलिए, आपकोपहलेमाइक्रोसॉफ्ट ऑफिस २०१० भाषाप्राथमिकताएँउपकरणमेंदाएँ-से-बाएँसक्षमकरनाआवश्यकहै. नोट चयनकाक्षेत्रबढ़ानेकेलिएकईबार क्ट्र्ल+आ दबाएँ. क्ट्र्ल+शिफ्ट+आयदिचयनितपृष्ठकिसीसमूहकाभागहै, तोसमूहकेसभीपृष्ठकेचयनकेलिए क्ट्र्ल+आ दबाएँ. चयनितपृष्ठटैबकोऊपरलेजाएँ. नोट ओनेनोट चलनेकेदौरान, जबआपनोट्समेंपरिवर्तनकरतेहैंतोवेस्वत: हीसहेजेजातेहैं. नोट्सकोमैन्युअलीसहेजनाआवश्यकनहींहै. क्ट्र्ल+ग, तबविभिन्ननोटबुककाचयनकरनेकेलिए डाउन अरो या उप अरो कुंजियोंकाचयनकरेंऔरतब एन्टर दबाएँ नोट आपकिसीभीसमय क्र्टल+ए या क्ट्र्ल+फ दबाकरसभीजगहखोजऔरकेवलवर्तमानपृष्ठपरखोजकेबीचस्विचकरसकतेहैं. वर्तमानचयनितनोटसेकोईआज आउटलूक कार्यबनाएँ. वर्तमानचयनितनोटसेकोईआनेवालादिन आउटलूक कार्यबनाएँ. वर्तमानचयनितनोटसेकोईयहसप्ताह आउटलूक कार्यबनाएँ. वर्तमानचयनितनोटसेकोईअगलासप्ताह आउटलूक कार्यबनाएँ. वर्तमानचयनितनोटसेकोईकोईदिनांकनहीं आउटलूक कार्यबनाएँ.
टेलीविज़न एक्ट्रेस जैस्मिन भसीन अपनी डेटिंग लाइफ को लेकर सुर्ख़ियों में बनी रहती हैं। कुछ समय पहले तक उनका नाम, ये है मोहब्बतें फेम, अली गोनी के साथ जोड़ा जा रहा था, लेकिन दोनों ने हमेशा यही कहा के उनके बीच दोस्ती से ज़यादा कुछ नहीं है। वहीं अब उनका नाम कोरियोग्राफर पुनीत पाठक के साथ जोड़ा जा रहा है। हाल ही में जैस्मिन अपने सोशल मीडिया पर लाइव आई थी, जहाँ एक फैन ने पुनीत का टॉपिक निकालते हुए कहा, के उन्हें पुनीत और जैस्मिन की जोड़ी बहुत अच्छी लगती है। इतना ही नहीं, उसी यूज़र ने जैस्मिन से पुनीत और उनके रिलेशनशिप स्टेटस के बारे में भी पूछ डाला। और जैस्मिन ने भी इस बात का खुलकर जवाब दिया। इतना प्यार देने का आप सभी को बहुत शुक्रिया के आप मुझे जिस भी मेल फ्रेंड के साथ देखते हो, उसके साथ पेअर कर देते हो। पुनीत और मैं साथ में अच्छे दीखते हैं, लेकिन सच ये है के मैं सबके साथ अच्छी दिखती हूँ, क्योंकि मैं यंग और सिंगल हूँ। आप मुझे किसीके भी साथ पेअर कर सकते हैं, लेकिन ये अच्छी चीज़ नहीं है। मुझे भी मेल फ्रेंड्स बनाने में कम्फर्टेबल होना चाहिए। इसके आगे जैस्मिन ने ये भी कहा के जब भी वो किसीको डेट करेंगी, वो ज़रूर सबको बताएंगी। तो पढ़ा आपने, जैस्मिन ने तो क्लियरली बोल दिया है के वो किसीको डेट नहीं कर रही हैं, आपका क्या कहना है इस बारे में? #जैस्मिन भसीन#टीवी न्यूज़#पुनीत पाठक#सेलिब्रिटी न्यूज़
एडीजी ने बताया कि अभी भी सुरक्षा को देखते हुए सोशल मीडिया पर नजर रखा जा रहा है। यह एक बड़ी चुनौती है लेकिन हमारी पुलिस प्रशासन इसके लिए पूरी तरह से तैयार है। अयोध्या के रामजन्मभूमि-बाबरी मस्जिद मामले पर को सुप्रीम कोर्ट ने ऐतिहासिक फैसला सुनाया था। इसके मद्देनजर देश के कई बड़े शहरों में सुरक्षा व्यवस्था को बढ़ा दिया गया था। सोशल मीडिया पर नजर रख रही यूपी पुलिस की टीम ऑपरेशन ईगल ने फैसले वाले दिन और उसके अगले दिन लगभग ८२७५ पोस्ट के खिलाफ कार्रवाई की है। पुलिस ने ट्विटर, फेसबुक और युतुबे जैसे सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स पर नजर रखने के लिए ऑपरेशन ईगल के नाम से एक खास मुहिम शुरू की थी। ऑपरेशन ईगल की टीम ने की बड़ी कार्रवाई: ऑपरेशन ईगल के तहत उत्तर प्रदेश में लगभग २५० लोगों की सोशल मीडिया एक्सपर्ट की टीम ने यूपी के सभी जिलों से होने वाली सोशल मीडिया पोस्ट पर नजर रखी गई। इस टीम ने ट्विटर, फेसबुक, और यूट्यूब के ८२७५ पोस्ट के खिलाफ कार्रवाई की है। यूपी के एक अधिकारी ने मीडिया को बताया कि हमने आपत्तिजनक पोस्ट करने वाले लोगों को डायरेक्ट मैसेज कर उनसे संपर्क कर उसे हटाने या कार्रवाई का सामना करने को कहा, अधिकांश लोगों ने अपने पोस्ट को हटा लिए, जबकि ७७ लोगों ने पोस्ट हटाने से मना कर दिया था। यह कार्रवाई शनिवार (८ नवंबर) और रविवार (९ नवंबर) के पोस्ट पर हुई है। हालांकि यह टीम अभी सोशल मीडिया पर नजर रख रही है। सोशल मीडिया पर पुलिस रख रही नजर: बता दें कि एडीजी ने बताया कि अभी भी सुरक्षा को देखते हुए सोशल मीडिया पर नजर रखी जा रही है। यह एक बड़ी चुनौती है लेकिन पुलिस प्रशासन इसके लिए पूरी तरह से तैयार है। यूपी सीएम योगी आदित्यनाथ ने शनिवार (८ नवंबर) को ११२ (इमरजेंसी नंबर) के दफ्तर का दौरा किया था और प्रदेश में किस तरह निगरानी रखी जा रही थी, उसके बारे जानकारी ली। गौरतलब है कि शनिवार को फैसला सुनाने से पहले चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया ने यूपी पुलिस और सरकार के अधिकारियों से मुलाकात कर सुरक्षा व्यवस्था जायजा लिया था। १ हाइवे पर ट्रक में जा घुसी सुव, महाराष्ट्र-यूपी में दो भीषण हादसों में १4 की मौत, ९ घायल
केंद्रीय संयुक्त गृह सचिव बोलीं- टैब्लिघी जमात के २५००० वर्करों को किया गया कोविड-१९: ठीक हुए मरीजों का खून बचाएगा जान, १०० साल पुरानी पद्धति ने दिखाई राह कोरोनाविरस के कहर के बीच अमेरिका में शोधकर्ता एंटीबॉटी प्लाज्मा पद्धति से कोविड-१९ के इलाज की तैयारी कर रहे हैं. इससे उन्हें अच्छे नतीजे मिलने की उम्मीद है. नई दिल्ली. अमेरिका में कोरोना वायरस के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं. आलम यह है कि विश्व स्वाथ्य संगठन को डर है कि वहां हालात यूरोप से भी गंभीर न हो जाएं. ऐसे में अमरीकी शोधकर्तों के लिए एक आस बंधी है जिससे वे दवा और टीके का इंतजार किए बिना ही लोगों को अस्पताल से जल्दी छुट्टी दे सकते हैं. न्यूयार्क में हो रही है तैयारी साइंस वेबसाइट नेचर में प्रकाशित एक लेख के मुताबिक न्यूयार्क के अस्पताल इस बात की तैयारी कर रहे हैं कि कोविड-१९ बीमारी से बचे हुए लोगों के खून में से वे संभावित एंटीडोट से अन्य मरीजों को ठीक कर सकें. कैसे ठीक हो सकता है इससे मरीज यह एक सौ साल पुरानी पद्धति है जिसमें मरीज को एंटीबॉडी वाला वह खून दिया जाता है जो उस व्यक्ति का होता है जो उस बीमारी से अपनी प्रतिरोधक क्षमता से बच गया हो. शोधकर्ताओं को उम्मीद है कि जिस तरह अमरिकी शहरों में तेजी से कोरोना के मामले बढ़ रहे हैं. वे अपने शहरों में इटली जैसे हालात पैदा नहीं होने देना चाहते जहां के अस्पतालों के आईसीयू में क्षमता से ज्यादा लोग हो रहे हैं. इटली में डॉक्टर उन मरीजों को लौटाने लगे हैं, जिन्हें वेंटीलेटर की जरूरत है. चीन में भी हो चुकी हैं इस तरह की कोशिशें चीन में भी इस तरह की कोशिशें हुई हैं. कॉन्वलेसेंट प्लाज्मा नाम की प्रक्रिया में ठीक हो चुके मरीजों के खून में से वह हिस्सा निकाला जाता है जिसमें एंटीबॉडी तो होती है, लेकिन रेड ब्लड सेल्स नहीं होते. इस तकनीक के निर्णायक नतीजे सामने नहीं आए हैं. इस तकनीक का उपयोग सार्स और इबोला जैसी महामारियों के दौरान भी किया गया था. तब भी इसमें बहुत ज्यादा सफलता नहीं मिली थी, फिर भी इससे अमरीकी शोधकर्ता उपचार के और ज्यादा कारगर होने की उम्मीद कर रहे हैं. कॉन्वलेसेंट प्लाज्मा का सबसे बड़ा लाभ यह है कि इसके लिए दवाओं और टीके का इंतजार नहीं करना पड़ेगा. क्या फायदा है कॉन्वलेसेंट प्लाज्मा का कॉन्वलेसेंट प्लाज्मा का सबसे बड़ा लाभ यह है कि इसके लिए दवाओं और टीके का इंतजार नहीं करना पड़ेगा. अभी तक वैज्ञानिक कोरोना वायरस की कोई सटीक दवा और टीका नहीं ढूंढ सके हैं और इनके विकसित होने और लोगों तक पहुंचने में काफी समय लगेगा. मरीज के खून में एंटीबॉडी देना तुलनात्मक रूप से सुरक्षित है बशर्ते उसे देने से पहले उसकी पूरी और सही जांचें हो जाएं. यह फायदा होने की है उम्मीद मिनेसोटा में रोचेस्टर के मेयो क्लीनिक (मेयो क्लीनिक इन रोचेस्टर, मिनेसोटा) में एनेस्थेसियोलॉजिस्ट और मनोविज्ञानी माइकल जॉयनर (मिशेल जोनर) का मानना है कि अगर वे हर मरीज को आईसीयू से बाहर रखने में कामयाब हो गए तो यह एक बड़ी सफलता होगी. उन्होंने कहा, हमें इसे काम में लेना ही होगा और वह भी जितनी जल्दी हो सके. साथ ही यह दुआ करनी होगी कि न्यूयार्क जैसी जगह में बहुत ज्यादा मरीजों की भीड़ न हो जाए. सोमवार को ही न्यूयार्क में कॉन्वलेसेंट प्लाज्मा के उपयोग की योजना को हरी झंडी दे दी गई है जहां २५००० से ज्यादा संक्रमित मरीज हो गए हैं जबकि मरने वालों की संख्या २१० हो गई है. पहले चरण में यह प्रक्रिया उन्हीं लोगों पर आजमाई जाएगी जिनके ठीक होने की संभावना ज्यादा है. उसके बाद शोधकर्ताओं को उम्मीद है कि यह उन लोगों पर भी आजमाया जा सकता जिन्हें संक्रमण की ज्यादा संभावना है जैसे कि हॉस्पिटल में काम करने वाले डॉक्टर और नर्सें. इससे लोगों के इलाज में बाधा नहीं आएगी. अमेरिका इस बात की भी योजना बना रहा है कि इलाज में कितना फायदा मिल रहा है इसकी जानकारी जल्दी से बाकी संबंधित शोधकर्ताओं और इलाज कर रहे अन्य अस्पतालों को भी मिल सके. ऐसे मुश्किल हालातों में स्वस्थ हो चुके मरीजों का खून मिलना किसी भी दवाई के बजाए आसान और सस्ता होगा. क्या है यह पद्धति वैज्ञानिक इस पद्धति को पैसिव एंटीबॉडी थैरेपी कहते हैं. इसमें मरीज को एंटीबॉडी उसके शरीर की प्रतिरोधक क्षमता से नहीं बल्कि बाहर से मिलती है जैसा कि टीके में होता है. इस पद्धति का पहला उपयोग साल १८९० में हुआ था. इसके बाद १९१८ में एचवनएवन इन्फ्लूएंजा महामारी के दौरान १७०० मरीजों पर इस आजमाया गया था. लेकिन इसके बाद भी इस पद्धति को लेकर सटीक नतीजे नहीं निकल सके. साल २००२-०३ में फैले सार्स वायरस के प्रसार के दौरान भी हॉन्गकॉन्ग में ८० मरीज पर कॉन्वलेसेंट सिरम का प्रयोग किया गया था जिनमें ठीक होने के बेहतर लक्षण पाए गए थे. इसी तरह अफ्रीका में १९९५ में फैले इबोला वायरस के मामले में भी इस पद्धति का उपयोग हुआ था. कांगो के कुछ मरीजों पर इसका सफलतापूर्वक उपयोग किया गया था, लेकिन इन मरीजों की संख्या कम थी. इस तरीके होता प्रयोग तो बेहतर नतीजे मिलते बाल्टीमोर की जॉन हॉपकिंस यूनिवर्सिटी (जॉन्स हॉपकिन्स यूनिवर्सिटी इन बल्तिमोर) के इम्यूनोलॉजिस्ट एट्यूरो कसाडेवाल (आर्तुरो कसादेवल) जनवरी से ही इस कोविड-१९ पर शोध कर रहे हैं. उनका मानना है कि अगर इस पद्धति का उपयोग उन्हीं लोगों पर होता जो बीमारी के प्रथम चरण में हैं, तो इसके नतीजे शानदार हो सकते थे. इसके लिए वे कई अखबारों, पत्रिकाओं में लेख लिख चुके हैं और अब उनके इस विचार को समर्थन भी मिल रहा है. कसाडेवाल से करीब १०० शोधकर्ता जुड़ चुके हैं जो अलग-अगल यूनिवर्सिटियों से ताल्लुक रखते हैं. जॉयनर भी उनमें से एक हैं. ठीक हो चुके मरीजों का खून लेने के लिए संबंधित टेस्ट तैयार होने को हैं. क्लीनिक ट्रायल के लिए सरकारी संस्थाओं को आवेदन भेजा जा चुके हैं. इन सब प्रयासों का नतीजा यह है कि कॉन्वलेसेंट प्लाज्मा परीक्षण दवाई के तौर पर स्वीकार कर ली गई है. अब डॉक्टर मरीजों को इसका विकल्प दे सकते हैं. आगे सकारात्मक नतीजे आ सकते हैं वैसे तो कॉन्वलेसेंट प्लाज्मा का प्रयोग फरवरी से शुरू हो गया था लेकिन अभी इसके निर्णायक नतीजे आने है. अब उम्मीद की जा रही है कि इसका बड़े पैमाने पर व्यवस्थित उपयोग भविष्य के लिए नई राह दिखा जाए.
आज सुबह से अब तक देश प्रदेश में कई बड़ी घटनाएं घटी हैं। अगर आप से भी मिस हो गई हैं अभी तक की ये टॉप खबरें तो पढ़ें हमारा क्विक न्यूज सेग्मेंट गर्लफ्रेंड की सगाई होने पर प्रेमी युवक ने लगाई फांसी, सुसाइट नोट में लिखा... प्रियंका के बाद योगी पहुंचे सोनभद्र, किया भारी मुआवजे का ऐलान उत्तरप्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (योगी आदित्यनाथ) ने सोनभद्र हत्याकांड (सोनभद्र में पीड़ित परिवारों के परिजनों को १८.५ लाख और घायलों को २.५ लाख रुपये का मुआवजा देने का ऐलान किया है। यह राशि सीएम राहत कोश से दी जायेगी। आज सुबह से अब तक देश प्रदेश में कई बड़ी घटनाएं घटी हैं। अगर आप से भी मिस हो गई हैं अभी तक की ये टॉप खबरें तो पढ़ें हमारा क्विक न्यूज सेग्मेंट दिल्ली का चेहरा बदलने वालीं शीला दीक्षित का यह है संक्षिप्त सियासी प्रोफाइल दिल्ली की पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस पार्टी की कद्दावर नेता शीला दीक्षित (शीला दीक्षित) का शनिवार दिन में देहान्त हो गया। बताया जा रहा है कि शीली दीक्षित की मौत लम्बे समय से चल रही बिमारी के कारण हुई है। अपनी मृत्यु के समय शीला दीक्षित की उम्र ८१ वर्ष थी। प्रियंका गांधी के पीड़ित परिवार से मिलने के बाद कांग्रेस ने किया मुआवजे का ऐलान प्रियंका गांधी (प्रियंका गांधी वद्र) ने आज सोनभद्र हत्याकांड (सोनभद्र केश) में पीड़ितों के घर वालों से मिलकर अपना धरना खत्म करने का ऐलान कर दिया है। इसके अलवा कांग्रेस ने पीड़ितों के परिजनों को १०-१० लाख रुपये आर्थिक मद्द देने का भी ऐलान किया है।
अमर उजाला काव्य विशेष: शख़्सियत में मिलिए इस बार उस्ताद राशिद ख़ान से जिनकी आवाज़ से फूल खिलते हैं, सुबह होती है और शाम अपना रंग बदलती है, जो अपनी आवाज़ को अपने पीर, अपने बुज़ुर्गों की इबादत का सिला मानते हैं, रामपुर सहसवान घराने के रोशन फ़नकार-उस्ताद राशिद ख़ान। उत्तर प्रदेश के बदायूं में जन्मे राशिद ख़ान अपने जन्मस्थान पर बहुत नहीं रहे, महज़ दस साल की उम्र में पहले मुंबई और फिर मुंबई से कोलकाता आ गए। यहां अपने बुजुर्गों के साए में और आइटीसी संगीत नाटक अकाजमी से शास्त्रीय संगीत की बाक़ायदा तालीम ली और दुनिया के बड़े-बड़े फ़नकारों के सामने, महज़ ग्यारह साल की उम्र में पहली प्रस्तुति दी। रियाज़ और मेहनत का यह सुरीला सिलसिला आगे बढ़ता रहा। सिला यह मिला कि एक दिन जब पंडित भीमसेन जोशी ने उन्हें सुना तो कहा कि हिंदुस्तानी शास्त्रीय संगीत को उसका भविष्य मिल गया। उत्साद राशिद कहते हैं कि गायकी का मुझे शुरू से ही शौक था और लगन भी। बाकी आज जो कुछ भी हूं अपने उस्तादों की वजह से हूं। उनके और अपनी लगन के कारण आज इस मुकाम को हासिल किया है। सभी घरानों से बहुत कुछ सीखने को मिला। मात्र ११ वर्ष की उम्र में अपना पहला लाइव कंसर्ट प्रख्यात शास्त्रीय गायक उस्ताद राशिद खानप्क: अमर उजाला मात्र ११ वर्ष की उम्र में अपना पहला लाइव कंसर्ट पेश करने वाले राशिद शान ने मुड़कर पीछे नही देखा और वे आज देश ही नही विदेशों में भी अपना अलग मुकाम बना चुके हैं। राशिद खान के कहा कि हर घराने की एक अलग खूबी है। मुझे सभी को जानना था। इसलिए मैने सभी से कुछ न कुछ सीखा है और उनका आज भी आदर करता हूं। हमने बहुत मार खाई तभी आज इस मुकाम पर पहुंचे हैं उस्ताद राशिद खान कहते हैं कि क्लासिकल म्यूजिक की बात करें तो इसकी जडे़ं इतनी मजबूत हैं कि इसे कोई चाह कर भी हिला नहीं सकता लेकिन वेस्टर्न म्यूजिक की वजह से आजकल के बच्चों में इसका रुझान कम होता जा रहा है। इसके लिए जरूरी है कि माता पिता अपने बच्चों को क्लासिकल म्यूजिक के बारे में जानकारी दें। बच्चों की मर्जी को जानने के बाद ही मां बाप को उन्हें उस फील्ड में डालना चाहिए उनके साथ जोर जबरदस्ती नहीं करनी चाहिए। हमने बहुत मार खाई तभी आज इस मुकाम पर पहुंचे हैं, लेकिन अब के बच्चों को न डांट पड़ रही है और न ही मार पड़ रही है। मुझे आज भी वह दिन याद है जब भुवनेश्वर एक कार्यक्रम से पहले कुछ समय के लिए सुस्ती के मूड में था। एक दम मेरे गुरु निसान हुसैन साहिब आए और उन्होंने एक जोरदार लात मारी। इसके बाद मेरे में इतनी चुस्ती आ गई कि मैने उस कार्यक्रम में सबसे बेहतरीन प्रस्तुति दे डाली। उस्ताद राशिद खान की आवाज़ और मुख़्तलिफ़ अंदाज़ की तपस्या से ही उन्हें पद्मश्री सहित अनगिनत सम्मानों से नवाजा जा चुका है। ये हमारे लिए फ़ख़्र की बात है कि अमर उजाला काव्य शख़्सियत में उस्ताद राशिद ख़ान हमारे ख़ास मेहमान हैं।
क्रिकेट-फुटबॉल के ९० ट्रेनिंग कैंप कश्मीर में चल रहे, बाकी खेलों के २२ इंडोर स्टेडियम बन रहे | क्रिकेट-फुटबॉल के ९० ट्रेनिंग कैंप कश्मीर में चल रहे, बाकी खेलों के २२ इंडोर स्टेडियम बन रहे क्रिकेट-फुटबॉल के ९० ट्रेनिंग कैंप कश्मीर में चल रहे, बाकी खेलों के २२ इंडोर स्टेडियम बन रहे कश्मीर के भटके हुए युवाओं को मोटीवेट करने के लिए सरकार ने खेल का सहारा लिया है। हाथ में गेंद थमाकर सरकार युवाओं को... कश्मीर के भटके हुए युवाओं को मोटीवेट करने के लिए सरकार ने खेल का सहारा लिया है। हाथ में गेंद थमाकर सरकार युवाओं को बंदूक, पत्थर और ड्रग्स से दूर करना चाहती है। इसी से जुड़ी रिपोर्ट जम्मू-कश्मीर की मुख्यमंत्री मेहबूबा मुफ्ती ने चार दिन पहले गृहमंत्री राजनाथ सिंह को सौंपी है। राजनाथ यहां राज्य के पहले स्पोर्ट्स काॅन्क्लेव में शामिल होने आए थे। उन्होंने इस पहल को स्पोर्ट्स की करामात कहा। इसका ही नतीजा है कि एक साल में ६० हजार बच्चे अलग-अलग इवेंट्स में शामिल हुए हैं। इनमें १२ हजार लड़कियां भी हैं। यहां उम्र की कोई सीमा नहीं है। ताकि ज्यादा से ज्यादा युवा खेल से जुड़ें। खेल को लेकर जिद ऐसी कि पत्थरबाजी के लिए बदनाम डाउन टाउन में ६ थाने हैं, पर ८ मैदान। शेष | पेज ५ कश्मीर घाटी में मैदान के रास्ते राह पर लौट रहे युवा; सालभर में ६० हजार बच्चे स्पोर्ट्स इवेंट में उतरे, २८९ मेडल जीत लाए यूनीक आइडिया: गांव-गांव में ट्रेनिंग के लिए कम्युनिटी कोच हिजाब पहनकर फुटबॉल प्रैक्टिस। सरकार ने एनआईएस पटियाला से २०० युवाओं को ट्रेनिंग दिलवाई है। अब ये युवा कोच की भूमिका निभा रहे हैं। कश्मीर के गांव-गांव जाकर युवाओं को प्रशिक्षण दे रहे हैं। ताकि जो युवा ट्रेनिंग लेने शहर नहीं आ सकते, ट्रेनिंग खुद उन तक पहुंचे। रग्बी, फुटबॉल, ताइक्वांडो, वुशू के लिए श्रीलंका, फ्रांस और बाकी देशों से इंटरनेशनल कोच भी कश्मीर आते हैं। २ कहानियां: जब बंदूक और पत्थर को छोड़ गेंद उठाई माजिद- बेस्ट स्टूडेंट, आतंकी और अब कोच साउथ कश्मीर आतंकवाद का गढ़ है। अनंतनाग में रहने वाला माजिद खान अपने दोस्त के एनकाउंटर के बाद आतंकवादी बन गया था। ये वही माजिद था, जिसे कुछ समय पहले स्कूल में स्टूडेंट ऑफ द इयर अवॉर्ड मिला था। परिवार वालों के कहने पर माजिद आतंकवाद छोड़ घर लौट आया। फिर स्पोर्ट्स काउंसिल के प्रोग्राम के जरिए एनआईएस पटियाला में ट्रेनिंग ली। आज माजिद फुटबॉल कोच है। अफशां- पत्थर फेंकने वाली, अब फुटबॉलर अफशां अपने उस फोटो से चर्चा में आई थी, जिसमें वह पत्थर लिए सुरक्षाबलों की ओर दौड़ रही है। अब अफशां कश्मीर वुमन फुटबॉल टीम की कैप्टन है। कश्मीर में ७० बच्चों को फुटबॉल भी सिखाती है, जिनमें ३० लड़के हैं। अफशां कहती हैं- पढ़ाई और फिर फुटबॉल के बाद किसी और बात के बारे में सोचने का वक्त ही नहीं मिलता।
पिछले दिनों उत्तरपूर्व से सटे दार्जिलिंग क्षेत्र में एक लंबे समय से चले आ रहें गोरखा आंदोलनकारियों और पश्चिम बंगाल की नयी सरकार के मध्य एक नए समझौते पर सहमति बनी है ,यद्यपि यह समझौता सुभाष घिसिंग के संगठन के बजाय हाल ही के वर्षों में बने संगठन के साथ हुआ है| इस सबसे यह आशा है कि बरसो से धधक रही गोरखा अन्दोलन की यह ज्वाला कुछ शांत हो सकेगी | एक त्रिपक्षीय समझौते पर भारत सरकार,बंगाल सरकार और विमल गुरंग के गोरखा जन मुक्ति मोर्चा ने हस्ताक्षर किये ,इसके तहत दार्जिलिंग पर्वतीय क्षेत्र में एक पचास सदस्यीय इकाई होगी ,जिसके पैंतालीस सदस्य निर्वाचित होंगे एवं पांच सदस्यों को मनोनीत किया जायेगा | भारत निर्माण के बाद से गोरखाओं को यह गलत फहमी रही है कि उनके साथ असामनता का व्यवहार होता है |अस्सी के दशक से इस अन्दोलन ने गति पकड़ी और फिर धीरे -धीरे इस तिल ने ताड़ का रूप ले लिया | यह बात अलग है कि आज इस क्षेत्र में घिसिंग का दल अप्रासंगिक हो चुका है ,इसीलिए तीन-चार साल पुराने गोरखा जन मुक्ति मोर्चा को इस समझौते में शामिल किया गया जिन्होंने हाल ही में कई बार सम्पूर्ण दार्जिलिंग क्षेत्र को बंद कर दिया था| दार्जिलिंग और उससे सटा सिक्किम देश भर के सैलानियों के आकर्षण का केंद्र है ,चाय बागान के साथ ही पर्यटन इस भाग का एक मुख्या उद्योग है | गोरखा आंदोलनों के चलते कई बार पर्यटन की गाडी पटरी से उतरती रही है और लागतार कई दिनों इन क्षेत्रों में प्रशासनिक व्यवस्थाए शून्य प्रतीत हुई है |इस समझौते ने बंगाल विभाजन की आशंकाओं को जन्म दिया और सिलीगुड़ी और आसपास के भागों में बंगाल और बांग्लाभाषा बचने के लिए बनी समितियों ने विरोध भी जताया | दार्जिलिंग सहित देश का यह उत्तर पूर्वी भाग चीन ,नेपाल ,भूटान ,बंग्लादेश आदि से घिरा है| खतरों की बात करें तो भूटान से उतनी दिक्कत नहीं है | चीन की नीचता और नेपाल का ढुलमुल रवैया एक बड़ी समस्या है | आजादी के बाद से देश का यह भू भाग उतना सहज और सामान्य नहीं रहा सका है जितना देश के अन्य राज्य | इसी कारण से यह प्रगति की दौड़ में भी थोडा पीछे है | जबकि इनके पास पर्याप्त मात्रा में खनिज एवं वन सम्पदा है |हलाँकि सरकारी प्रयास पूरी ईमानदारी और शक्ती के साथ है फिर भी इस क्षेत्र में विकास के परिणाम अपेक्षा अनुरूप नहीं है | असम में बोडो और उलफा से तनातनी आज भी जारी है ,गुवाहटी तक में अन्य हिंदुस्तानियों और हिंदी का विरोध आज भी है ,कभी सार्वजानिक तो कभी चुपके-चुपके | नागा लैंड में राजीव गाँधी के समय में तब के विद्रोही नेता लालडेंगा से हुए समझौते के बाद बनी शांति आज तक स्थाई नही हो सकी है |अब नागा रिकंसिलिएशन फोरम और नेशनल सोशलिस्ट कौंसिल ऑफ नागलिम जैसे संगठन नागा लैंड में सरकार से जूझ रहें है लेकिन उचित समय पर सरकार से संवाद के लिए तैयार भी है अर्थात यह की चीजें सामान्य तो नहीं है | मिजोरम में सरकार और हमर पीपुल्स कन्वेंशन के मध्य संवाद-विवाद जारी है |यह समूह मिजोरम और मणिपुर दोनों राज्यों में सक्रिय है और एक पृथक हमर स्वायत्त काउन्सिल की मांग को लेकर जनता के बीच है | अरुणाचल प्रदेश में चीन दुःख दे रहा है |त्रिपुरा में नेशनल लिबरेशन फ्रंट ऑफ त्रिपुरा व्यवस्था विरोधी है ,मेघालय में गारो समुदाय का आतंकी संगठन है| उत्तर पूर्व के इन सात राज्यों में स्तिथियाँ लगभग एक जैसी ही है ,इन राज्यों में बहुतायत आदिवासी समुदाय की है साथ ही इन राज्यों में और इनके आसपास के राज्यों जैसे बंगाल या सिक्किम में गोरखा भी एक बड़ी मात्रा में है| गोरखाओं के संगठन तो भारतीय गोरखा परिषद के सामंजस्य में काम करते है जबकि बाकि राज्यों में अलग-अलग संगठन है जिनकी अपनी ढपली और अपना ही राग है | यह राज्य भौगोलिक रूप से तो देश के अन्य राज्यों से दूर है ही ,लेकिन अब पारिस्थित वश यह देश के अन्य राज्यों के मन और मष्तिष्क से भी दूर होते जा रहें है |दुखद यह है की इन राज्यों के भारतियों को यह बताना पड़ता है कि वे भी भारत वासी है ,कोई विदेशी नागरिक नहीं| चीन ने धीरे धीरे अरुणाचल पर अपने दांत गडाना शुरू कर दिया है |तवांग का मुद्दा भी भविष्य में कश्मीर समस्या सा रूप ले सकता है ,ऐसा चीन का प्रयास है |इसके साथ नागा लैंड पर भी चीन लालच भरी निगाहों से देख रहा है, वैसे भी नागा लैंड में चीन का भ्रामक प्रचार यह है कि नागा-लैंड के लोग मूलतः चीन के है | ऐसे में पहल यह होनी चाहिए की दार्जिलिंग जैसी शुरुआत इन सातों राज्यों में भी हो | अब तक के सरकारी प्रयास सुखद दिखते जरूर है,पर यथार्थ में सुखद एवं सशक्त नहीं है ,अभी इन राज्यों में आंदोलनकारियों और आम जनता की बीच दूरी है लेकिन कब यह दूरी मिट जायेगी नहीं कहा जा सकता है |अभी यह संगठन उतने हिंसक भी नहीं हुए है जितने कश्मीर के संगठन है| शायद धन अभाव के चलते ऐसा हो पर चीन की चली तो धन अभाव की सम्पति और अहिंसा से हिंसा का परिवर्तन ,दोनों ही संभव है | अब तो शीघ्र ही इन सब की जन भावनाओं को समझ कर उन्हें यह बतलाया जाये की सूरत भिन्न हो सकती है लेकिन सोच और संस्कृति का मूल भारत और भारतीयता ही है क्योकि दक्षिण पंथी पहले से ही इस पूरे क्षेत्र में ईसाई विरुद्ध अन्य का वातावरण बनये हुए है | उस पर चीन की चालाकियां कही देश पर भविष्य में भारी न पड़ें | लेखक एन .डी.सेंटर फार सोशल डेवलपमेंट एंड रिसर्च के अध्यक्ष है प्रेवियस अलगाववादी जमात का हिस्सा बनते बुद्धिजीवी नेक्स्ट बीसवीं सदी में भारतीय इतिहास के छः काले पन्ने : भाग ६
सुरुचिपूर्ण महिला लंबी आस्तीन पुष्प मुद्रित खिंचाव मिनी पोशाक बैंगगुड में | खरीदारीइंडिया सुरुचिपूर्ण महिला लंबी आस्तीन पुष्प मुद्रित खिंचाव मिनी पोशाक फिट म, कंधा: १४.९६ इंच, बस्ट: ३४.६५ इंच, बांह की लंबाई: १९.६९ इंच, कमर: ३३.८६ इंच, लंबाई: ३१.५० इंच फिट ल, कंधा: १५.३५ इंच, बस्ट: ३६.२२ इंच, बांह की लंबाई: २०.०८ इंच, कमर: ३५.४३ इंच, लंबाई: ३१.८९ इंच फिट ज़्ल, कंधा: १५.७५ इंच, बस्ट: ३७.८० इंच, बांह की लंबाई: २०.४७ इंच, कमर: ३७.०१ इंच, लंबाई: ३२.२८ इंच फिट २ज़्ल, कंधा: १६.१४ इंच, बस्ट: ३९.३७ इंच, बांह की लंबाई: २0.८७ इंच, कमर: ३८.५८ इंच, लंबाई: 3२.६८ इंच फिट ३ज़्ल, कंधा: १६.५४ इंच, बस्ट: ४०.९४ इंच, बांह की लंबाई: २१.२६ इंच, कमर: ४०.१६ इंच, लंबाई: ३३.०७ इंच फिट ४ज़्ल, कंधा: १६.९३ इंच, बस्ट: ४2.५२ इंच, बांह की लंबाई: २१.६५ इंच, कमर: ४1.७३ इंच, लंबाई: ३३.४6 इंच और सिजऊस साइज हमें आकार कंधा बस्ट बांह की लंबाई कमर लंबाई म(१६०/८४आ) ज़्स १४.९६ ३४.६५ १९.६९ ३३.८६ ३१.५० म(१६०/८४आ) ज़्स ३८.०० ८८.०१ ५०.०१ ८६.०० ८०.०१
प्यार का ओवरडोज कहीं बिगाड़ न दें आपके रिलेशनशिप का बैलेंस अति किसी भी चीज की बुरी होती है, चाहें वो प्यार ही क्यों ना हो... अति किसी भी चीज की बुरी होती है, चाहें वो प्यार ही क्यों ना हो... जी हां, किसी भी रिलेशनशिप को बैलेंस रखने के लिए प्यार और भावनाओं का बैलेंस होना बहुत जरूर है। आपके लिए प्यार का प्रदर्शन जितना जरूरी है, उतना ही जरूरी है साथ ही प्रति भावनाओं पर नियंत्रण। वरना कई बार क्योंकि कई बार आपके प्यार का ओवरडोज ही आपके रिश्ते को खराब कर देता है। हालांकि कई बार ये लोग समझ ही नहीं पाते कि वो गलती कहां कर रहे हैं, मतलब कि उन्हें किस तरह से भावनाओं के अतिरेक से हमें बचना चाहिए। आज हम आपको इसी बारे में बताने जा रहे हैं कि आपका प्यार किस हद के बाद आपके रिलेशनशिप के लिए ओवरडोज बन जाता है। प्यार करें पर पज़ेसिवनेस बचें प्यार में अपनापन जताना एक हद तो ठीक है, पर इस बात का जरूर ध्यान रखें कि कहीं आपका ये प्यार दूसरे के लिए घुटन तो नहीं बन रहा है। कई बार लोग प्यार में इतने पज़ेसिव हो जाते हैं कि सामने वाले की सहजता और सुविधा का ध्यान तक नहीं रखते और फिर यही बात रिश्ते में दरार का कराण बनती है। स्पेस बनाए रखें किसी भी रिलेशनशिप में एक निश्चित दूरी बनाए रखना बेहद जरूरी है, क्योंकि इसके बिना आपका रिश्ता बोरिंग हो जाता है। एक निश्चित स्पेस आपके रिश्ते में नयापन और आर्कषण बनाए रखता है। उम्मीदें और चाहतों की भी हो सीमा रिलेशनशिप में लोगों की अपने साथी से हजारों ख्वाहिशें और उम्मीदें जुड़ी होती है, पर इसकी भी एक सीमा होनी चाहिए। क्योंकि कई बार अधिक उम्मीद पाल लेना भी आपके लिए नुकसानदायक हो जाता है। खासकर जब आपका साथी ऐसी चीजों के प्रति उदासीन हो। असल में, कुछ लोग प्यार तो जरूर करते हैं, पर उन्हें दूसरे को जताना नहीं आता, ऐसे में हो सकता है कि वो आपकी ख्वाहिशों को ना समझ पाएं, पर उसका ये मतलब नहीं है कि वो आपसे प्यार नहीं करते हैं।
होम > उत्पादों > उच्च दक्षता खनन पंप(उच्च दक्षता खनन पंप के लिए कुल २४ उत्पादों) उच्च दक्षता खनन पंप - निर्माता, कारखाने, आपूर्तिकर्ता चीन से हम विशेष हैं उच्च दक्षता खनन पंप निर्माताओं और आपूर्तिकर्ताओं / कारखाने चीन से। कम कीमत / सस्ते के रूप में उच्च गुणवत्ता के साथ थोक उच्च दक्षता खनन पंप, चीन से अग्रणी ब्रांडों में से एक उच्च दक्षता खनन पंप में से एक, शीजियाज़उआंग सोरओ मचीनरी को.,लैड।
१२ मई, 'अंतरराष्ट्रीय नर्स दिवस' पर जानिए नर्सों से जुड़ी कुछ महत्वपूर्ण और रोचक बातें! - न्ट्ड इंडिया अंतरराष्ट्रीय नर्स दिवस (इंटरनेशनल नर्स्स दए) नोबल नर्सिंग सेवा की शुरूआत करने वाली फ़्लोरेन्स नाइटिंगेल (फ्लोरेंस नाइटेंगले) के जन्म दिवस पर हर साल दुनिया भर में मई १२ को मनाया जाता है। विश्व स्वास्थ्य संगठन (वर्ल्ड हेल्थ ऑर्गनिज़शन) की एक रिपोर्ट के अनुसार दुनिया भर में अमीर और ग़रीब दोनों प्रकार के देशों में नर्सोंं की कमी चल रही है। विकसित देश अपने यहाँ नर्सोंं की कमी को अन्य देशों से नर्सोंं को बुलाकर पूरा कर लेते हैं और उनको वहाँ पर अच्छा वेतन और सुविधाएँ देते हैं, जिनके कारण वे विकसित देशों में जाने में देरी नहीं करती हैं। दूसरी ओर विकासशील देशों में नर्सोंं को अधिक वेतन और सुविधाओं की कमी रहती है और आगे का भविष्य भी अधिक उज्ज्वल नहीं दिखाई देता, जिसके कारण वे विकसित देशों के बुलावे पर अपने देश को छोड़ अन्य देशों में नौकरी के लिए चली जाती हैं। दुनिया में अधिकांश देशों में आज भी प्रशिक्षित नर्सों की भारी कमी चल रही है।लेकिन विकासशील देशों में यह कमी और भी अधिक देखने को मिलती है। भारत में विदेशों के लिए नर्सों के पलायन में पहले की अपेक्षा कमी आई है।लेकिन रोगी और नर्स के अनुपात में अभी भी भारी अंतर है। ट्रेन्ड नर्सेस एसोसिएशन ऑफ़ इंडिया (थे ट्रेन्ड नर्स्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया) की महासचिव के अनुसार सरकार द्वारा उठाए गए कदमों के कारण भारत में प्रशिक्षित नर्सों की संख्या में कुछ सुधार हुआ है। केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय के अनुसार सरकारी चिकित्सा महाविद्यालयों और अस्पतालों में नर्सों की कमी को ध्यान में रखते हुए विवाहित महिलाओं को भी नर्सिंग पाठयक्रम में प्रवेश लेने की अनुमति दी गई है। नर्सों की सराहनीय सेवा को मान्यता प्रदान करने के लिए भारत सरकार के परिवार एवं कल्याण मंत्रालय ने राष्ट्रीय फ्लोरेंस नाइटिंगल पुरस्कार की शुरुआत की। पुरस्कार प्रत्येक वर्ष १२ मई को दिये जाते हैं। यह पुरस्कार प्रति वर्ष माननीय राष्ट्रपति द्वारा प्रदान किये जाते हैं। आधुनिक नर्सिंग की संस्थापक फ्लोरेंस नाइटिंगल का जन्म मई १२, १८२० को हुआ था। १९६५ से अभी तक यह दिन प्रत्येक वर्ष इंटरनेशनल काउंसिल ऑफ नर्सेज द्वारा अन्तर्राष्ट्रीय नर्स दिवस के रूप में मनाया जाता है। इंटरनेशनल काउंसिल ऑफ नर्सेज (इंटरनेशनल काउंसिल ऑफ नर्स्स), नर्सोंं के लिए नए विषय की शैक्षिक और सार्वजनिक सूचना की जानकारी की सामग्री का निर्माण और वितरण करके इस दिन को याद करता है। फ्लोरेंस नाइटिंगल पुरस्कार में ५० हज़ार रुपए नकद, एक प्रशस्ति पत्र और मेडल दिया जाता है।
पुलवामा आताक: जैमल सिंह के शहादत की खबर सुन बेहोश हो गई पत्नी | उवायु आतंकियों ने १४ फरवरी को जिस कायराना वारदात को अंजाम दिया है उसमें किसी का भाई, तो किसी का पति, तो किसी का बेटा शहीद हो गया। वतन की रखवाली करने वाले इन जांबाज शेरों से बौखलाए आतंकियों ने घात लगाकर इस देश में दहशत का माहौल बनाना चाहा। सीआरपीएफ की जिस गाड़ी को निशाना बनाया गया वह गाड़ी पंजाब के एक शेर शहीद जैमल सिंह के हाथ में थी। शहीद जैमल सिंह का जन्म पंजाब के मोगा जिले के कस्बा कोटइसेखां में २६ अप्रैल १९७४ को हुआ था। जैसे ही जैमल सिंह गाड़ी को लेकर पुलवामा पहुंचे थे कि आतंकी ने विस्फोटकों से भरी एसयूवी गाड़ी को बस से टक्कर मार दी। ये सब इतने जल्दी हुआ कि खुद जैमल सिंह को पता नहीं चला होगा कि ये क्या हो गया। एसयूवी को टकराते देर नहीं लगी कि क्र्प्फ जवानों से भरी उस बस के परखच्चे उड़ गए। धमाका इतना भीषण था कि घटनास्थल के दृश्य को देखकर रूह कांप जाएगी। उनके मौत की खबर पैतृक गाँव पहुच चुकी है। घर पर जैसे ही जैमल सिंह के शहादत की सूचना आई उनकी पत्नी सुखजीत कौर बेहोश हो गईं। पति के शहादत की खबर सुनने के बाद उनका रो- रोकर बुरा हाल हो गया है। उनके मुंह से बार-बार एक ही बात निकल रही है कि जैमल को लाओ। जैमल के बेटे के सर से भी पिता का साया हट चुका है। बेटे की उम्र ६ साल है। बेटे के भी अरमान हैं, उन्हें पूरा कौन करेगा। बताया जाता है कि जैमल सिंह जब १९ साल के थे तभी क्र्प्फ में भर्ती हो गए थे। कई दिन बाद जम्मू-श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग के खुलने के बाद क्र्प्फ का यह काफिला गुरुवार को तड़के करीब ३:३0 बजे जम्मू से रवाना हुआ था। शाम तक उसके श्रीनगर पहुंचने की उम्मीद थी। मगर पहले से ही साजिश रचकर बैठे आतंकियों ने मंजिल तक नहीं पहुँचने दिया। श्रीनगर से ३1 किलोमीटर दूर पुलवामा जिले के लेथपोरा इलाके में आत्मघाती हमलावर ने दोपहर बाद ३:१६ बजे काफिले को निशाना बनाया। होली में आ रहा हूं, फिर बेटी को गोद में खिलाऊंगा, अधूरी रह गई वीर सपूत रोहिताश लांबा की यह चाहत
होम ब्लॉग २०१८ दीवाली पर्व का महत्व व दीपपूजन/दीपदान का शुभ मुहूर्त पौराणिक कथाओं के अनुसार दिवाली हिंदू धर्म में मनाया जाने वाला बड़ा त्योहार है। कार्तिक महीने की अमावस्या के दिन दीपावली यानी दिवाली का त्योहार मनाया जाता है। इस बार यह ७ नवंबर २०१८ को मनाई जाएगी। मान्यता है कि भगवान राम चौदह साल के वनवास के बाद अयोध्या लौटे थे। तब अयोध्यावासियों ने घर में घी के दिए जलाए थे और अमावस्या की काली रात भी रोशन हो गई थी। इसलिए दिवाली को प्रकाशोत्सव भी कहा जाता है। दिवाली के दिन मां लक्ष्मी की पूजा की जाती है। दीपदान, धनतेरस, गोवर्धन पूजा, भैया दूज आदि त्यौहार दिवाली के साथ-साथ ही मनाए जाते हैं। प्रेवियस आर्टियलकैंसर जैसे घातक रोग को कैसे करें दूर जानिए ज्योतिषाचार्य सुनील बरमोला जी द्वारा
नोटबंदी का मकसद अच्छा हो सकता था, लेकिन तैयारी ठीक नहीं : अरुण शौरी - थे शियासत डेली नोटबंदी का मकसद अच्छा हो सकता था, लेकिन तैयारी ठीक नहीं : अरुण शौरी नई दिल्ली: पूर्व विनिवेश मंत्री अरुण शौरी ने ५०० और १००० रुपये में नोटों पर प्रतिबंध लगाने के सरकार के फैसले की आलोचना करते हुए कहा कि उन्हें नहीं लगता कि नोटबंदी का कदम कालाधन या करमुक्त धन की समस्या से निजात दिला पाएगा. जो लोग काला धन या काली संपत्ति रखते हैं, वे उसे कैश में नहीं रखते. वे अपना धन गद्दे के नीचे रखने नहीं जा रहे. वे इन्हें विदेशों में रखते हैं और डॉलर में भी नहीं, बल्कि बोरों में रखते हैं. यह संपत्ति, गहनों, शायद अन्य परिसंपत्तियों में हो सकती है, जिसमें बारे में हमें नहीं पता, शायद शेयर बाजारों में भी हो सकती है. इसका उद्देश्य अच्छा हो सकता है, लेकिन इस पर सुझाव पर ठीक से विचार नहीं किया गया. एनडीटीवी के साथ एक विशेष साक्षात्कार में शौरी ने कहा कि सरकार ने जिस ८५ प्रतिशत भारतीय मुद्रा को हटाने के लिए ये कदम उठाया था, उससे उपजने वाली इन समस्याओं का अनुमान नहीं लगाया था. उन्होंने कहा कि छोटे और मध्यम उद्यमों, परिवहन क्षेत्र, पूरा कृषि क्षेत्र छह लाख गांवों तक नहीं पहुंचा जा सकता. इसके साथ ही उन्होंने कहा कि उन्होंने इस बारे में नहीं सोचा? यह एक बड़े विचार से दूर किया जा रहा है, एक आत्म-छवि में हो रहा है कि मुझे कुछ सर्जिकल स्ट्राइक करना है. जब उनसे पूछा गया कि क्या यह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का एक साहसिक और क्रांतिकारी कदम था, तो उन्होंने कहा कि कुएं में कूदना भी क्रांतिकारी और बड़ा कदम होता है, खुदकुशी करना भी क्रांतिकारी कदम होता है. अगर आप एक शुरुआत करना चाहते है तो कर प्रशासन में सुधार के साथ शुरुआत करनी चाहिए.
पढ़े पेट कम करने के घरेलू उपाय समाचार-विचार-विश्लेषण पढ़े पेट कम करने के घरेलू उपाय यदि आपका लगातार वजन बढ़ रहा है तो सावधान हो जाइए। कमर और पेट का ये बढ़ता साइज कई बीमारियों का कारण बन सकता है। यदि आप भी इस समस्या से जूझ रहे हैं तो यह हैं कुछ ऐसे छोटे-छोटे नुस्खे, जिन्हें अपनाकर आप बिना ज्यादा मेहनत किए वजन को नियंत्रित कर सकते हैं। १. पुदीने की ताजी हरी पत्तियों की चटनी बनाकर चपाती के साथ खाएं। पुदीने वाली चाय पीने से भी वजन नियंत्रण में रहता है। २. रोज खाने से पहले गाजर खाएं। खाने से पहले गाजर खाने से भूख कम हो जाएगी। आधुनिक विज्ञान भी गाजर को मोटापा कम करने में कारगर मानता है। ३. आधा चम्मच सौंफ को एक कप खौलते पानी में डाल दें। १० मिनट तक इसे ढककर रखें। ठंडा होने पर इस पानी को पिएं। ऐसा तीन माह तक लगातार करने से वजन कम होने लगता है। ४. पपीता नियमित रूप से खाएं। यह हर सीजन में मिल जाता है। लंबे समय तक पपीता के सेवन से कमर की अतिरिक्त चर्बी कम होती है। ५. दही को खाने से शरीर की फालतू चर्बी घट जाती है। ६. छाछ का भी सेवन दिन में दो-तीन बार करें। ७. छोटी पीपल का बारीक चूर्ण पीसकर उसे कपड़े से छान लें। यह चूर्ण तीन ग्राम रोजाना सुबह के समय छाछ के साथ लेने से बाहर निकला हुआ पेट अंदर हो जाता है। ८. ज्यादा कार्बोहाइड्रेट वाली वस्तुओं से परहेज करें। शक्कर, आलू और चावल में अधिक कार्बोहाइड्रेट होता है। ये चर्बी बढ़ाते हैं। ९. केवल गेहूं के आटे की रोटी की बजाय गेहूं, सोयाबीन और चने के मिश्रित आटे की रोटी ज्यादा फायदेमंद है। १०. सब्जियों और फलों में कैलोरी कम होती है, इसलिए इनका सेवन अधिक मात्रा में करें। केला और चीकू न खाएं। इनसे मोटापा बढ़ता है। ११. आंवले व हल्दी को बराबर मात्रा में पीसकर चूर्ण बना लें। इस चूर्ण को छाछ के साथ लेंं। कमर एकदम पतली हो जाएगी। १२. मोटापा कम नहीं हो रहा हो तो खाने में कटी हुई हरी मिर्च या काली मिर्च को शामिल करके बढ़ते वजन पर काबू पाया जा सकता है। एक रिसर्च में पाया गया कि वजन कम करने का सबसे बेहतरीन तरीका मिर्च खाना है। मिर्च में पाए जाने वाले तत्व कैप्साइसिन से भूख कम होती है। इससे ऊर्जा की खपत भी बढ़ जाती है, जिससे वजन कंट्रोल में रहता है। १३. लटजीरा या चिरचिटा के बीजों को एकत्र कर लें। किसी मिट्टी के बर्तन में हल्की आंच पर भूनकर पीस लें। एक-एक चम्मच दिन में दो बार फांकी लें बहुत फायदा होगा। १४. दो बड़े चम्मच मूली के रस में शहद मिलाकर बराबर मात्रा में पानी के साथ पिएं। ऐसा करने से १ माह के बाद मोटापा कम होने लगेगा। १५. मालती की जड़ को पीसकर शहद मिलाकर खाएं और छाछ पिएं। प्रसव के बाद होने वाले मोटापे में यह रामबाण की तरह काम करता हैै। १६. खाने के साथ टमाटर और प्याज का सलाद काली मिर्च व नमक डालकर खाएं। इनसे शरीर को विटामिन सी, विटामिन ए, विटामिन के, आयरन, पोटैशियम, लाइकोपीन और ल्यूटिन मिलेगा। इन्हें खाने के बाद खाने से पेट जल्दी भर जाएगा और वजन नियंत्रित हो जाएगा। १७. रोज सुबह-सुबह एक गिलास ठंडे पानी में दो चम्मच शहद मिलाकर पिएं। इस घोल को पीने से शरीर से वसा की मात्रा कम होती है। १८. गुग्गुल गोंद को दिन मे दो बार पानी में घोलकर या हल्का गुनगुना कर सेवन करने से वजन कम करने में मदद मिलती है। १९. हरड़ और बहेड़ा का चूर्ण बना लें। एक चम्मच चूर्ण ५० ग्राम परवल के जूस (१ गिलास) के साथ मिलाकर रोज लें, वजन तेजी से कम होने लगेगा। २०. करेले की सब्जी खाने से भी वजन कम करने में मदद मिलती है। सहजन के नियमित सेवन से भी वजन नियंत्रित रहता है। प्रेवियस प्रेवियस पोस्ट: बेटी श्रद्धा की शादी पर, पिता शक्ति ने दिया अनोखा जवाब नेक्स्ट नेक्स्ट पोस्ट: बिहार : बारिश बनी आफत, बाढ़ के पानी से डूबने व घरों के गिरने से सात की मौत
२३ मई को रिलीज होगा एकता कपूर के शो 'कहने को हमसफ़र है सीजन ३' का ट्रेलर २० मई, २०२० १२:०१ प्रोड्यूसर एकता कपूर इन दिनों अपनी वेब सीरीज "बारिश" को लेकर सुर्खियों में है। और अब उन्होंने अनाउंस किया वो जल्द ही ऑल्ट बालाजी के शो 'कहने को हमसफ़र है' का तीसरा सीजन लेकर आ रहीं हैं, जिसका ट्रेलर २३ मई को रिलीज होगा। इसकी जानकारी एकता ने अपने सोशल मीडिया पर दी। एकता ने शो 'कहने को हमसफ़र है' के तीसरे सीजन का मोशन पोस्टर अपने सोशल मीडिया पर शेयर किया है। मोशन पोस्टर शेयर करते हुए एकता ने कैप्शन दिया, "क्या रिलेशनशिप के लिए प्यार काफी है? क्या टैग के बिना कुछ रिलेशनशिप बेहतर हैं? क्या आप किसी ऐसे व्यक्ति को माफ कर सकते हैं जिसने आपको धोखा दिया है? क्या कुछ हमसफ़र सिर्फ कहने को हमसफ़र होते है? ये सवाल एक बार फिर उठाए जाएंगे, ऐसे सवाल जिनका कभी-कभी जवाब नहीं मिलता है। देखें कि कैसे हर सिचुएशन ने #कहनेकोहमसफरहैं में शादी, रिश्तों और प्यार के सामाजिक नॉर्म को चैलेंज किया..... सीजन ३;......2३ मई को ट्रेलर आउट होगा, ६ जून को @अल्तबालाजी और @ज़ी५प्रीमियम पर प्रीमियम होगा।" वही जी ५ प्रीमियम के ऑफीशियल हैंडल ने अपने सोशल मीडिया पर मोशन पोस्टर शेयर करते हुए लिखा, "#रिश्तों की उलझन मोहब्बत की डोर से है। ये कितनी कमजोर और कितनी मजबूत है, इसका सफर तय कीजिए #कहनेकोहमसफरहैं सीजन ३ में। जल्द आ रहा है जी ५ पर। सीजन १&२ फ्री में देखिये।" इस शो का तीसरा सीजन और भी इंट्रेस्टिंग होने वाला है। क्योंकि इसकी कहानी दूसरे सीजन के खत्म होने के तीन साल बाद से शुरू होगी। दूसरे सीजन की कहानी जिस मोड़ पर खत्म हुई थी वह काफी रोचक है। बता दें दूसरे सीजन की कहानी यही खत्म होती है जब रोहित अनन्या को धोखा दे देता है और वह अपनी पहली पत्नी पूनम के पास चला जाता है, तो अनन्या भी रोहित को उसके भले के लिए छोड़ देती है। इसके आगे की कहानी को देखना दिलचस्पी होगा। फैंस बेसब्री से इसके तीसरे सीजन का इंतजार कर रहे थे, और अब जाकर एकता ने फैंस को ये खुशखबरी सुनाई है। आल्ट बालाजी और जी५ के शो 'कहने को हमसफर हैं' के पहले और दूसरे सीजन को दर्शकों से बहुत ही अच्छा रिस्पांस मिला। इसलिए, मेकर्स अब इसका तीसरा सीजन लेकर आ रहे है। इस शो में रोनित रॉय, मोना सिंह और गुरदीप कोहली लीड रोल में हैं। खबरों के मुताबिक नए सीजन में इन तीनों के अलावा कुछ नए चेहरे भी देखने को मिलेंगे। विराट कोहली बने डायनासोर, अनुष्का ने शेयर किया वीडियो २० मई, २०२० ०८:२७
एक मिनट के मन के जरिये मानवता का विश्व शांति का लक्ष्य : प्रेस विज्ञप्ति एक मिनट के मन के जरिये मानवता का विश्व शांति का लक्ष्य निगमेजेन, २५ अगस्त, पीआरन्यूजवायर- एशियानेट । इस वैश्विक अभियान में लाखों लोगों को शामिल करने की अपील पूरी दुनिया के लाखों लोग, अगर अरबों लोग न जुट पाएं, १४ नवंबर को ठीक १५.०० बजे जीएमटी को विश्व शांति के लिए एक मिनट का मन रखेंगे । यह लक्ष्य पुर्तगाली संस्था मिनट-आफ-वल्र्ड-पीस का है जिसने विश्व शांति के लिए आज १३३ देशों के लोगों का ध्यान आकृष्ट करने का अभियान चलाया है । अधिक से अधिक देशों के अधिक से अधिक लोगों की इसमें भागीदारी के लिए एक श्रृंखला बनाए जाने की जरूरत है । इसका पहला लक्ष्य जागरूकता फैलाना है । अभियान की पहल करने वाले हैन्स ब्रुगमैन ने कहा, यदि इस वक्त के दरान लोगों के विचार आकृष्ट कर लिए जाते हैं तो भविष्य में इसका प्रभाव देखने को मिलेगा । इसका दूसरा लक्ष्य विश्व शांति के लिए एक मिनट के समय की वास्तविक रचना करना है । ब्रुगमैन कहते हैं, इसकी ताकत सहजता में समाहित है क्योंकि इसमें हिस्सा लेना बेहद आसान है । यदि हर कोई इसके बारे में जान जाएगा तो इस एक मिनट के लिए स्थिर हो जाएगा, यहां तक कि सैनिक भी अपनी अंगुली एक मिनट के लिए ट्रिगर से हटा लेगा । ऐसी स्थिति में पहली बार पृथ्वी की तकरीबन समूची आबादी विश्व शांति के लिए वास्तविक प्रयास करेगा । पिछले कुछ दशकों में सभी सशस्त्र्ा विद्रोहों के बावजूद लोग अभी भी विश्व शांति का लक्ष्य रखते हैं । इस बारे में खुलासा एक वेबसाइट एचटीटीपी: डब्ल्यूडब्ल्यूडब्ल्यू डाट मिनटआफवल्र्डपीस डाट ओआरजी के ११०० उपभोक्ताओं पर कराए गए एक सर्वेक्षण से किया गया है । इसमें ९६ प्रतिशत लोगों ने अपनी शीर्ष दस बडी इच्छाओं में विश्व शांति को भी रखा है । पहली प्रेस विज्ञप्ति १३३ देशों के २५०,००० पत्र्ाकारों अर ४,००० समाचार वेबसाइटों पर जारी की गई है । इसके अलावा जिन लोगों तक यह संदेश पहुंचाया गया है, उनसे इस संदेश को अपने परिजनों अर दोस्तों के बीच प्रसारित करने के लिए भी कहा गया है । संस्था ने उन राजदूतों से भी अपील की है जो अपने-अपने देशों में इस अभियान के लिए मदद करना अर इसे प्रोत्साहन देना चाहते हैं । साथ ही लोगों से भी अपने देशों में शांति के संदेश के साथ शिलाएं रखने जैसे कार्यक्रम आयोजित करने की अपील की गई है । ये सभी प्रयास १४ नवंबर को एकजुट लोगों के लिए शांति के क्षण साबित हो सकते हैं । इस तारीख को चुनने का भी एक मकसद है । यह तारीख बर्लिन की दीवार गिराए जाने के कारण पूरी दुनिया में याद की जाती है । यह संस्था इस अभियान में हिस्सा लेने वाले सभी भागीदारों को आजादी अर शांति का अहसास कराने की उम्मीद करती है जिसकी अनुभूति उस वक्त हुई थी । विशेष जानकारी के लिए: एचटीटीपी: डब्ल्यूडब्ल्यूडब्ल्यू डाट मिनटआफवल्र्डपीस डाट ओआरजी
पूर्व भारतीय क्रिकेट कप्तान कपिल देव ने एवीटी चैंपियंस टूर गोल्फ टूर्नमेंट में शुक्रवार को यहां ६० से ६४ वर्ष के आयु वर्ग का खिताब जीता, जबकि सीमा सुरक्षा बल के पुष्पेंद्र सिंह राठौड़ ने ओवरऑल ट्रोफी जीती। इस चैंपियनशिप में दस शहरों के १०० से अधिक गोल्फरों ने हिस्सा लिया था। इस पार ७२ कोर्स में दोनों दिन बारिश होने के कारण खेलना मुश्किल हो गया था। कपिल ने कहा, जीतना हमेशा अच्छा अहसास होता है। एवीटी टूर बेहतरीन प्रयास है जिससे हम सरीखे सीनियर एमेच्योर को किसी उद्देश्य के लिए नियमित तौर पर खेलने में मदद मिल रही है। सीनियर टूर ने कुछ प्रतिभाशली गोल्फरों में प्रतिस्पर्धी भावना जगा दी है। कपिल दा जवाब नहीं उल्लेखनीय है कि कपिल देव की कप्तानी में ही क्रिकेट टीम ने १९८३ में वनडे वर्ल्ड चैंपियन बनी थी, जिसने भारतीय को बदलकर रख दिया था। कपिल बाद में टीम इंडिया कोच भी बने।
दस हजार की रिश्वत लेते एएसआई व दलाल गिरफ्तार | न्यूज चक्र होम इंडिया राजस्थान दस हजार की रिश्वत लेते एएसआई व दलाल गिरफ्तार दस हजार की रिश्वत लेते एएसआई व दलाल गिरफ्तार एसीबी के डीएसपी सलेह मोहम्मद ने बताया कि काबलीगढ़ निवासी मंगलराम मीणा ने गुरुवार को एसीबी में शिकायत दी थी | इसमें कहा गया था कि पेड़ काटने को लेकर बोदन व मंगलराम के बीच थानागाजी पुलिस थाने में मामला चल रहा है। मामले में एफआर लगाने की एवज में एएसआई रोशनलाल ने दस हजार रुपए की मांग की है। शिकायत के सत्यापन के बाद एसीबी ने कारर्वाई को अंजाम देने की योजना बनाई | इसके अनुसार मंगलराम ने थानागाजी थाने पहुंचकर एएसआई रोशनलाल को चेम्बर में दस हजार रुपए दिए। एएसआई ने ये रुपए दलाल बंशीधर को देने को कहा। इस पर मंगलराम ने यह राशि थाने में ही बैठे बंशीधर को दे दी। इसके बाद मंगलराम की ओर से एसीबी की टीम को इशारा करते देख बंशीधर भागने लगा। मगर टीम ने उसे थाने के गेट पर ही पकड़ लिया| इसी के साथ एएसआई रोशनलाल को भी गिरफ्तार कर रिश्वत की राशि बरामद कर ली। प्रेवियस आर्टियलनेताजी से जुड़ी फाइलों की तीसरी खेफ सार्वजनिक, सरकार दिल्ली में बनवाएगी स्मारक नेक्स्ट आर्टियलअब एक एसएमएस से कैंसिल हो जाएगा रेल टिकट पुणे सुपर जायंट्स के खिलाफ जीत के बावजूद कोहली पर लगा... बेंगलुरु के कॉलेज में राहुल गांधी के छक्के छूटे, हर बात... नजरिया: किस कारण शाहरुख व आमिर को भारत लगने लगा असहिष्णु...
गस्ट से गरीबों को क्या फायदा मिलेगा?... जीएसटी जो है वह कैसी गरीबों के फायदे के लिए नहीं बनाई गई है जुस्तजू है कि स्कीम है जिसमें एक टैक्स का प्रॉपर्ली डिफिशन होता है कि कितना टैक्स किसको जाएगा मतलब ५०% जो भी टेस्ट किया जाता है उस चीज को ज्यादा सेफ्टी सेंट्रल हो जाता है और जीएसटी से यह फायदा है कि जो नई कंपनी आएंगी गरीबों को बेस एंड अल्कली फायदा हो सकता जो नई कंपनी आ रही है कहीं सेट हो रही तो उन्हें ज्यादा खुद को सेट अप करने में ज्यादा परमिशन की एक्स एक्स एक्स का जो होता डिसटीब्यूशन उसे मुश्किल नहीं होगी तो कंपनी से आसानी से भारत के अंदर आ पाएंगी और अब वह कंपनी अगर यहां पर लगेंगे तू अपने यहां से कोई फर्क नहीं लिखेंगे वहीं किसानों को यही के लोगों को अपने आप पर काम पर लगाएंगे जिससे नौकरियां मिलेंगे लोगों को और गरीबों को भी से फायदा होगा जीएसटी जो है वह कैसी गरीबों के फायदे के लिए नहीं बनाई गई है जुस्तजू है कि स्कीम है जिसमें बेबी गुड्स एंड सर्विस टैक्स होती है जो कि पूरे इंडिया में एप्लीकेशन हुआ है...और पढ़ें गस्ट क्या होता है? जीएसटी क्या है वस्तु एवं सेवा कर या जीएसटी की एक व्यापक बहुस्तरीय गंतव्य आधारित...और पढ़ें गस्ट १० क्या होता है? शिक्षा पर गस्ट कितने प्रतिशत है? शिक्षा पर कोई जीएसटी नहीं लगता है अगर आप के स्कूल और कॉलेज के अंदर...और पढ़ें गस्ट लागू किस देश से हुआ है? नमस्कार आगोश में जीएसटी लागू किस देश में है तो देख इसका जवाब है जीएसटीऔर पढ़ें गस्ट का फुल फॉर्म? नमस्कार आपका उसमें फुल फॉर्म ऑफ जीएसटी तो इसका जवाब है जीएसटी का फुल फॉर्मऔर पढ़ें गस्ट कम्पोजीशन स्कीम क्या है? नमस्कार आपका प्रश्न है जीएसटी कंपोजिशन स्कीम क्या है तो मैं आपको बताना चाहूंगा किऔर पढ़ें
सोमवार से खुल सकते हैं बाजार! सबसे बड़े व्यापारिक केंद्रों में सैनिटाइजेशन अभियान शुरू दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ग्रीन जोन में औद्योगिक गतिविधियों और बाजारों को खोलने के हिमायती रहे हैं। उन्होंने कई बार इस बात को स्पष्ट भी कर दिया है। इसी बीच व्यापारियों ने वित्त मंत्री मनीष सिसोदिया से मिलकर बाजारों को खोलने की मांग भी की है। सरकार के रुख से व्यापारियों को उम्मीद है कि सोमवार से बाजारों को खोलने की अनुमति मिल सकती है। इसे देखते हुए व्यापारियों ने अभी से अपनी तैयारियां भी शुरू कर दी हैं। दिल्ली के सबसे बड़े व्यापारिक केंद्र चावड़ी बाजार, नया बाजार, स्वामी श्रद्धानंद बाजार, कटरा बाजार और लाहौरी गेट में गुरुवार से ही सैनिटाइजेशन अभियान शुरू कर दिया गया है। राजधानी क्षेत्र के प्रमुख व्यापारी प्रेम अरोड़ा ने बताया कि व्यापारी संगठनों को इस बात की उम्मीद है कि सोमवार से उन्हें दुकानें खोलने की अनुमति मिल जाएगी। इसे देखते हुए गुरुवार से ही बाजारों को सैनिटाइज किया जा रहा है। व्यापार शुरू होने के बाद भी दुकानों के अंदर भी सैनिटाइजेशन किया जाएगा। एक अन्य व्यापारी हेमंत गुप्ता ने बताया कि बाजार खुलने के बाद उन सबकी बड़ी चुनौती कोरोना संक्रमण का खतरा टालते हुए व्यापार चालू रखने की होगी। इसके लिए अभी से रणनीति बनाई जा रही है। उन्होंने कहा कि दुकानों को ऑड-ईवन योजना के तहत खोलने से भी बाजार में भीड़ कम हो सकेगी। इसके अलावा हर प्रतिष्ठानों पर एक कर्मचारी ग्राहकों और अन्य आने वालों के हाथों को सैनिटाइज करने के लिए काम करेगा जिससे कोरोना संक्रमण के खतरे को कम किया जा सके। आम आदमी पार्टी के व्यापारिक प्रकोष्ठ के संयोजक ब्रजेश गोयल ने बताया कि सरकार को अब तक पांच लाख से अधिक सुझाव मिल चुके हैं। इनमें बाजारों को खोलने की अपील की गई है। हालांकि इसके लिए कुछ जरूरी प्रतिबंध लगाने की बात भी कही गई है जिससे कोरोना संक्रमण का खतरा और अधिक न बढ़े। उन्होंने कहा कि, केंद्र सरकार का रुख सामने आने के बाद सरकार इस पर अंतिम फैसला ले सकती है।
भूमिहर @ नवयुग के प्रगतिशील चिन्तक @ भूमिहर: भांप रहे भूमिहारों की भूमिका भांप रहे भूमिहारों की भूमिका सियासत के अखाड़े में जब बात शह-मात की होती है, तो मौत दरकिनार कर दी जाती है। अखाड़े में विरोधी को मात देने के लिए शतरंज की हर चाल खेली जाती है। रणवीर सेना के संस्थापक एवं राष्ट्रवादी किसान संगठन के अध्यक्ष ब्रह्मेश्वर सिंह उर्फ मुखिया जी की हत्या के बाद बिहार में कुछ ऐसी ही राजनीति चल रही है। मुखिया की मौत पर सियासी रोटियां सेंकने में तमाम राजनीतिक दलों ने ताकत झोंक दी है। भूमिहार समुदाय के वोट बचाने की लिए मैदान-ए-जंग में कूदी भाजपा किसी भी हद तक जाने के लिए तैयार है। चुनाव में भूमिहारों की भूमिका को भांप पार्टी के वरिष्ठ नेता और मंत्री गिरिराज सिंह ने मौत के बाद मुखिया को गांधी की संज्ञा देने तक से परहेज नहीं किया। जदयू तो खामोश रहकर सवर्णों के साथ दलितों और महादलितों को भी खुश रखने की भरपूर कोशिश कर रहा है। न तो मुखिया के खिलाफ बयानबाजी हो रही है और न ही उनकी मौत पर आंसू बहाए जा रहे हैं। विपक्ष को मिली ताकत : बिहार में जब सियासी बवंडर उठता है, तो इसकी गूंज पूरे देश में सुनाई देती है। लंबे अरसे से यह सियासी बवंडर थम चुका था। भाजपा-जदयू गठबंधन सरकार को मिले जनसमर्थन से अपंग विपक्ष को ऐसे मुद्दे की तलाश अरसे से थी। लोकसभा चुनाव के करीब आते ही मुखिया की हत्या ने जैसे कमजोर विपक्ष को संजीवनी दे दी है। हत्या के बाद सरकार के खिलाफ आवाज बुलंद कर रहे राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद ने तो यहां तक कह डाला कि अगर यह हत्या मेरे शासनकाल में हुई होती, तो लोग कहते कि मैंने ही कराई है। लालू ने एक ही शब्द में यह भी जता दिया कि मुखिया की हत्या किसी मामूली व्यक्ति के वश की बात नहीं। मुखिया की मौत में एक सरकारी साजिश है। हत्या के दिन से अब तक रोज राजद नेता किसी न किसी बहाने मीडिया के सामने आकर बयान दे रहे हैं। कल तक कैमरे से दूरी बढ़ा चुके लालू भी रोज किसी न किसी मसले पर संवाददाता सम्मेलन कर मुखिया की मौत पर सरकार को कठघरे में खड़ा कर रहे हैं। साफ है कि लंबे समय बाद पाले में आए गेंद पर नेट गोल करने में राजद कोई कसर नहीं छोड़ना चाहता। धर्मसंकट में भाजपा : मुखिया की मौत से सत्ताधारी दल को भूमिहार के साथ ही सवर्ण वोट खिसकने का डर सता रहा है। इसमें सबसे अधिक नुकसान भाजपा को ही होने की आशंका है। भूमिहार, राजपूत, कायस्थ समेत सवर्ण जातियों का वोट भाजपा के पास माना जाता है। मुखिया की हत्या के बाद भूमिहार समुदाय के अलावा हर सवर्ण के मन में सरकार के प्रति गुस्सा है। खासकर, भाजपा के खिलाफ। इसकी बड़ी वजह है, अपने वोटरों को सुरक्षा मुहैया नहीं करा पाना। बाथे नरसंहार में बरी होने के बाद राज्य सरकार ने पटना हाईकोर्ट के फैसले को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती देने की बात कही थी। सरकार का यह फैसला खास तौर से भूमिहार समुदाय के लोगों को कांटे की तरह चुभ रहा था। कारण, बाथे नरसंहार में मुखिया ही मुख्य साजिशकर्ता माने गए थे। यह वही ब्रह्मेश्वर मुखिया हैं, जिन्होंने शुुरुआत से लेकर अपने सक्रिय रहने तक भाजपा के कई कद्दावर नेताओं को सियासी जमीन मुहैया कराई। अब मुखिया की मौत के बाद भाजपा नेताओं की इस हरकत ने भी भूमिहार समुदाय को गहरी चोट दी है। ऐसे में भाजपा को भी सवर्ण वोट खिसकने का भय सता रहा है। भाजपा के वरिष्ठ नेता और उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी भी भूमिहारों के गुस्से को जायज ठहराते हैं। जबकि, भाजपा के वरिष्ठ नेता और मंत्री गिरिराज सिंह ने मुखिया को गांधी कहकर भूमिहार समुदाय को परोक्ष रूप से ताकत देने की भरपूर कोशिश की। कांग्रेस खुश, नीतीश खामोश : मुखिया की मौत को लेकर कांग्रेस भी पीछे नहीं है। भड़के भूमिहारों को अब ऐसे राजनीतिक दल की तलाश है, जो उनके समर्थन में हर वक्त खड़ा रहे। अब उनकी नजर कांग्रेस पर है। कांग्रेस भी इस मौके को भुनाने की भरपूर कोशिश कर रही है। सूत्र बताते हैं कि बिहार कांग्रेस के कई वरिष्ठ नेता लगातार केंद्रीय नेतृत्व के संपर्क में हैं। जल्द ही बिहार कांग्रेस का अध्यक्ष भी चुना जाना है। ऐसे में कयास लगाया जा रहा है कि भूमिहारों के बढ़ते आक्रोश और विकल्प की तलाश के बीच कांग्रेस का अध्यक्ष पद किसी भूमिहार नेता को ही सौंपा जाए। वहीं मुखिया की हत्या के बाद उठे सियासी बवंडर में अगर किसी की नाव सबसे अधिक खतरे में है, तो वह हैं मुख्यमंत्री नीतीश कुमार। यही वजह है कि हत्या के दिन से ही नीतीश समेत जदयू के तमाम नेता खामोश हैं। सरकार के निर्माण में भूमिहारों की भूमिका को भांप नीतीश हर कदम फूंक-फंूक कर रख रहे हैं। उन्होंने न तो मुखिया की मौत पर तीखा बयान दिया, न ही मौत पर आंसू बहाए। कारण, अगर नीतीश, मुखिया को नरसंहारों का आरोपी मानते हुए कोई बयान देते, तो भूमिहारों का गुस्सा ज्वालामुखी बन जाता। अगर उन्होंने मुखिया की मौत पर आंसू बहाए, तो पिछड़े और महादलितों का वोट बैंक खिसक जाता।
अब '५ग' की स्पीड से दौड़ेंगी ट्रेनें - ख्वाब नहीं सच होगा सपना होम फैक्ट अब ५ग की स्पीड से दौड़ेंगी ट्रेनें ख्वाब नहीं सच होगा... अब ५ग की स्पीड से दौड़ेंगी ट्रेनें ख्वाब नहीं सच होगा सपना हम सब एप्पल को मोबाइल फोन को लेकर जानते हैं. एप्पल के फोन अपनी स्पीड और स्मूथनेस को लेकर जानी जाती है. अब यही एप्पल भारतीय ट्रेनों की स्पीड बढ़ाएगी. अगर आम बोलचाल में कहें तो एप्पल भारतीय ट्रेनों को ५जी की स्पीड देगी.रेल मंत्री सुरेश प्रभु ने कहा कि सरकार की रेलगाड़ियों की गति बढ़ाकर ६०० किलोमीटर प्रति घंटा करने पर नजर है और इसके लिए वह एप्पल जैसी वैश्विक प्रौद्योगिकी कंपनियों के साथ बातचीत कर रही है. प्रेवियस आर्टियलक्रिकेट में करिश्मा बैट्समैन ने एक गेंद में ठोक डाले २० रन
अमरोहा से १६ साल पहले दो युवकों को ले गए थे कश्मीरी कश्मीरियों के साथ अमरोहा के संबंध पहले से जुड़ते रहे हैं। अब से १६ साल पहले भी ढबारसी के एक मदरसे में साल भर तक कश्मीर के दो दर्जन युवक रहे थे, जोकि ढबारसी के दो युवकों को भी अपने साथ ले गए। कुछ दिनों बाद एक युवक तो लौट आया था, लेकिन दूसरे का आज तक कहीं पता नहीं चल सका है। जम्मू कश्मीर के पुलवामा और सोपियां के दो दर्जन युवक साल २००१ में ढबारसी की स्थित जियारत में चलने वाले मदरसे में पढ़ने के लिए आए थे। एक साल बाद जब कश्मीरी युवक यहां से लौटे तो ढबारसी के राशिद पुत्र बाबू और फुरकान पुत्र अलीजान को अपने साथ ले गए।बताते हैं कि इसके बाद कश्मीरी युवकों ने संभल को अपना ठिकाना बनाया। संभल के कई मदरसों में कश्मीरियों का ठिकाना था। ढबारसी का फुरकान उनकी मंशा को भांप कर अपने घर लौट आया था। वहीं राशिद को कश्मीरी अपने साथ ले गए थे। राशिद का कोई पता नहीं चला। परिजनों ने भी काफी तलाश किया गया था। जाने के करीब एक साल के बाद राशिद ने पश्चिम बंगाल के बांग्लादेश की सीम से सटे डाकखाने से घर के लिए आठ हजार रुपये का मनी आर्डर किया। मनी आर्डर आने पर परिजनों को राशिद के मिलने की एक बार फिर उम्मीद जगी। राशिद के पिता ने उस डाकखाने पहुंचकर राशिद की जानकारी हासिल की, लेकिन उसका कहीं पता नहीं चल सका। जिले के खुफिया तंत्र को ढबारसी में कश्मीरियों के रहने की भनक तक नहीं लगी थी।
कम से कम प्यार? ८ संकेत जो आप बहुत दूर चले गए हैं - दर्शन - २०१९ अतिसूक्ष्मवाद के लिए एक नकारात्मक पहलू है। यहाँ कुछ संकेत दिए गए हैं जिन्हें आप बहुत दूर ले गए हैं। इसमें कोई संदेह नहीं है कि आपके जीवन में सभी अनावश्यक चीजों से छुटकारा पाना बहुत उपयोगी है: अधिक स्थान, अधिक स्पष्टता, अधिक विश्वास है कि जो चीजें आपके लिए हैं वे वास्तव में आपकी आवश्यकता हैं और आपके लक्ष्यों की सेवा करती हैं। हालाँकि, अतिसूक्ष्मवाद का एक नकारात्मक पहलू भी है - और नीचे हम कई संकेत प्रस्तुत करते हैं जिन्हें आप बहुत दूर ले गए हैं: १. आप सभी को अपनी नई जीवन शैली के बारे में बताना शुरू करते हैं और अपनी रैंक में "भर्ती" करते हैं। क्या आप जानते हैं कि जब कोई आपको अपने नए शौक के बारे में बताता है, तो आपको कितना गुस्सा आता है, लेकिन आपको इसमें कोई दिलचस्पी नहीं है? शायद कोई आपके अतिसूक्ष्मवाद के बारे में ऐसा सोचता है। यदि किसी को आपकी रुचि कैसे रहती है, तो वह आपसे सवाल पूछेगा। इसमें इस जानकारी को बाध्य करने की आवश्यकता नहीं है। २. पड़ोसी आपको बर्दाश्त नहीं करते हैं, क्योंकि आप उनसे लगातार कुछ न कुछ मांगते हैं। अपने पड़ोसियों को परेशान करना बंद करो! यह महान है कि अतिसूक्ष्मवाद आपको मानसिक और भौतिक स्थान तक पहुंच प्रदान करता है; हालाँकि, यह अच्छा नहीं है कि आप किसी ऐसे व्यक्ति के दरवाज़े पर लगातार दस्तक दें, जिस गैजेट के लिए आप पिछले सप्ताह बाहर गए थे। ३. आप ईर्ष्या करते हैं जब किसी के पास आपसे कम चीजें होती हैं। अब आप उन लोगों से ईर्ष्या करते हैं जिनके पास कुछ नया और फैशनेबल है। अब आप परेशान हो जाते हैं यदि आपके पास घर पर अधिक खाली कोने और अलमारियां हैं जो आप करते हैं। ४. आपके मेहमानों के पास बैठने के लिए कुछ नहीं है। घर के सभी कुर्सियों से छुटकारा पाएं? यदि आप चाहते हैं कि मेहमान आपके पास आते रहें, तो सुनिश्चित करें कि उनके पास बैठने के लिए जगह है - उदाहरण के लिए, तकिए या पाउफ पर। और बुजुर्ग रिश्तेदारों के लिए सोफे को छोड़ना अच्छा होगा। ५. आप लगातार सबसे आवश्यक खरीद रहे हैं। यह अनावश्यक से छुटकारा पाने के लिए बहुत अच्छा है - लेकिन अक्सर सबसे जरूरी चीजें गर्म हाथ के नीचे मिलती हैं। प्रत्येक सप्ताह के अंत में टोस्टर को बाहर न फेंकें - सोमवार को समझने के लिए कि आपको एक नया चाहिए। ६. आपका साथी कुछ खरीदने से डरता है। यह एक क्लासिक संकेत है कि आप बहुत दूर चले गए हैं। जब आपके साथी की हर खरीद भय के साथ होती है (आप क्या कहते हैं?), यह "अनावश्यक" की अवधारणा में शामिल किए गए अपने दृष्टिकोण पर पुनर्विचार करने का समय है। ७. आपके लिए आदर्श सप्ताहांत अपार्टमेंट का विश्लेषण है। फिर से ... क्या आपने पहले से ही ऐसा नहीं किया था? पेंट्री के बजाय प्रियजनों के साथ समय बिताने के लिए बेहतर है। ८. आप एक साथी नहीं रखना चाहते हैं - यह बहुत अधिक जगह लेता है। यदि आप तारीखों पर नहीं जाते हैं, क्योंकि कोई अन्य व्यक्ति आपके घर की स्वच्छता को परेशान कर सकता है, तो यह आपके विचारों पर पुनर्विचार करने के लायक हो सकता है - यह पहले से ही बहुत अधिक है! कॉपिराइट २०१९ \ नोन \ कम से कम प्यार? ८ संकेत जो आप बहुत दूर चले गए हैं
सलमान ने वकील और पुलिस की जोड़ी को इंट्रोड्यूस कराते वक्त कहा- इनसे मेरा पुराना नाता है। इलाहाबादः बीच सड़क पर वकील की गोली मारकर हत्या समाचार पत्रिका | मई १०, २०१८, ०२:४९ प्म इस्ट सलमान खान के वकील का कहना है की अदालत के फैसले से वे हैरान हैं। कोर्ट के जजमेंट का अध्ययन कर रहे हैं। कर स्कैम में नवाजुद्दीन सिद्दीक़ी के वकील गिरफ्तार समाचार पत्रिका | मार १७, २०१८, ०७:४० आम इस्ट
बरेली इंटरनेशनल यूनिवर्सिटी की ओर से प्रियंका चोपड़ा को डॉक्टरेट की उपाधि दी गई। खराब मौसम की वजह से प्रियंका अपनी माँ के साथ कार्यक्रम में नहीं पहुँच सकीं। प्रियंका चोपड़ा बरेली तो नहीं आईं लेकिन वीडियो संदेश भेजकर सबको धन्यवाद कहा। प्रियंका वीडियो में अपने बरेली में बिताए दिनों को याद कर भावुक हो गईं।
यूपी:डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य बोले-निकाय चुनाव में इतिहास रचेगी ब्जप १/२ यूपी:डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य बोले-निकाय चुनाव में इतिहास रचेगी ब्जप बीजेपी प्रदेश कार्यसमिति में हिस्सा लेने आए डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य ने कहा कि समुद्र मंथन से अमृत निकला था और विकास मंथन से कमल खिलना तय है। प्रदेश की जनता सबको देख चुकी थी, इन सबसे आजिज होकर उसने पहले केंद्र फिर प्रदेश में सरकार बनवाई। अब निकाय चुनाव में भी कमल खिलेगा।गुरुवार को पीएसआईटी सभागार में हिन्दुस्तान से खास बातचीत में डिप्टी सीएम ने दावा किया कि यूपी की ९० फीसदी सड़कों को गड्ढामुक्त किया जा चुका है। स्वच्छता अभियान हो या जनधन योजना, हर एक योजना से पब्लिक को राहत दी गई है। अब तक की सरकारों ने केवल जनता को बेवकूफ बनाकर लूटा है। भाजपा सरकार दल, जाति-धर्म से ऊपर उठकर विकास को ध्यान में रखकर काम करती है। शहीदों का गांव सड़क से जुड़ेगा- ग्राम्य विकास मंत्री महेंद्र सिंह ने यहां कहा कि प्रदेश और केंद्र सरकार का प्रेम हर शहीद के प्रति है। इस मंशा से ही ग्राम्य विकास विभाग हर शहीद के गांव को संपर्क मार्ग से जोड़ेगा। उन्होंने कहा कि आजादी के बाद पहली बार ऐसी सरकार बनी है जो मार्च-२०१८ तक ९ लाख ७१ हजार लोगों को ग्रामीण इलाकों में आवास देगी। भाजपा की मंशा सभी निगमों पर कब्जे की- बीजेपी प्रदेश कार्यसमिति की गुरुवार को हुई बैठक से स्पष्ट हो गया कि आगामी निकाय चुनाव को पार्टी पूरी गंभीरता से ले रही है। पार्टी का लक्ष्य प्रदेश के सभी नगर निगमों पर कब्जा जमाने के अलावा ज्यादा से ज्यादा नगर पालिकाओं को अपनी झोली में डालना रहेगा। पार्टी के प्रदेश प्रभारी ओम माथुर ने कहा कि पार्टी का प्रयास प्रदेश में होने वाले निकाय चुनावों में जबरदस्त जीत के जरिए आगामी लोकसभा चुनाव में क्लीन स्वीप की इबारत लिखना है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सरकार की प्राथमिकताओं का जिक्र करते हुए कहा कि वन डिस्ट्रिक्ट वन प्रोडक्ट के जरिए यूपी की पहचान बनाने का फैसला लिया गया है। इसके तहत हर जिले की पहचान वाले उद्योगों को बढ़ावा देकर लोगों को रोजगार से जोड़ा जाएगा। सरकार का लक्ष्य पांच लाख लोगों को रोजगार देने का है। पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष महेन्द्र नाथ पांडेय ने कहा कि जीएसटी की विसंगतियों को दूर करने के लिए जीएसटी काउंसिल फैसले ले रही है। प्रदेश में पेट्रोल से वैट कम करने के केंद्र के सुझाव को राज्य सरकार ने संज्ञान में लिया है। यूपी के डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य के आगमन की तैयारी हिन्दुस्तान स्वच्छता अभियान: जानिये हमारे जनप्रतिनिधियों ने क्या कहा.. हिन्दुस्तान स्वच्छता अभियान:परमात्मा की बंदगी जितनी ही जरूरी स्वच्छता हिन्दुस्तान स्वच्छता अभियान : स्वच्छ वातावरण बनाना सबकी जिम्मेदारी हिन्दुस्तान स्वच्छता अभियान: काशी की तरुणाई ने ली स्वच्छता की अंगड़ाई गुजरात दौरे पर कम योगी, इन जगहों पर होंगी सभाएं उप टेट: परीक्षा में किया नकल तो जिंदगीभर पछताएंगे, जारी हुई नियमावली
पेट में घुसा हसिया, डाक्टरों ने बचाई जान देवरिया: रामपुर कारखाना थाना क्षेत्र के ग्राम हिरंदापुर में मंगलवार को एक दर्दनाक हादसा हो गया। खेत में कंबाइन के पीछे-पीछे धान काट रही बालिका के अचानक खेत में गिरने से उसके पेट में हसिया घुस गया। जिससे वह गंभीर रुप से घायल हो गई। उसे तत्काल जिला अस्पताल पहुंचाया गया, जहां से आपरेशन कर हसिया बाहर निकाला गया। गांव में हिरंदापुर में एक धान के खेत में कंबाइन हार्वेस्टर चल रहा था, गांव की बबली ११ पुत्री लाला कंबाइन के पीछे धान की बाल काट रही थी, अचानक उसका पैर फिसल गया, जिससे वह गिर गई और हादसा हो गया। जिसके बाद वह बेहोश हो गई। लोगों ने उसे तत्काल सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र रामपुर कारखाना पहुंचाया, जहां प्राथमिक उपचार के बाद चिकित्सक ने उसे जिला अस्पताल रेफर कर दिया। आपरेशन में लगा आधा घंटा जिला कारागार पहुंचने के बाद बालिका तड़प रही थी, यह देख सीएमएस डा.छोटेलाल ने सर्जन डा.अजय शाही, डा.भरत उपाध्याय समेत पांच सदस्यीय टीम का गठन किया। इसके तत्काल बाद बालिका को आपरेशन थियेटर में पहुंचाया गया। आधे घंटे के प्रयास के बाद चिकित्सकों की टीम ने पेट से हसिया निकाला। सीएमएस का कहना है कि बालिका के पेट से हसिया निकल गया गया है। बालिका की स्थिति अब सामान्य है। वेस्ट बंगाल :कोरोना से जंग जीतने के बाद मां ने बेटे को किडनी दान की रक्तदान के लिए हर किसी को आना होगा आगे : जैन बैंक में उपमहाप्रबंधक बनने पर दी बधाई किसानों ने फाटक बंद करने का किया विरोध तुर्की के हागिया सोफिया संग्रहालय को मस्जिद में बदले जाने पर पोप फ्रांसिस ने की कड़ी निंदा वोकेशनल टीचर्स एसोसिएशन ने सौंपा ज्ञापन जान जोखिम में डाल जर्जर आवासों में रहते स्वास्थ्यकर्मी लॉकडाउन के दौरान शहर की सड़कों पर दिखा सन्नाटा, बंद रही दुकानें सप्ताह में एक दिन खुलेगा इग्नू कार्यालय
मैं उन लोगों से डरता हूं जो माथे पर लगाते हैं कुमकुम या लंबा टीका : सिद्धरमैया कर्नाटक के पूर्व सीएम और वरिष्ठ कांग्रेस नेता सिद्धरमैया ने एक कार्यक्रम के दौरान माथे पर टीका लगाने को लेकर एक बयान दिया है। उन्होंने कहा कि उन्हें माथे पर लंबा टीका लगाने वालों से डर लगता है। बता दें कि इससे पहले उन्होंने डिस्लेक्सिया बीमारी के मुद्दे को लेकर पीएम नरेंद्र मोदी पर निशाना साधा था। दरअसल, सिद्धरमैया मंगलवार को बादामी में एक झील के कायाकल्प परियोजना के उद्घाटन समारोह में पहुंचे थे। उस दौरान मंच से बोलते हुए उन्होंने पास खड़े एक व्यक्ति के माथे पर लगे टीके की ओर इशारा किया और कहा, मैं उन लोगों से डरता हूं जो अपने माथे पर कुमकुम या भस्म का लंबा टीका लगाते हैं। बता दें कि सिद्धरमैया अक्सर अपने बयानों के चलते सुर्खियों में बने रहते हैं।
मुंबई। 'बिगबॉस १३' जीतने के बाद सिद्धार्थ शुक्ला जिम में पसीना बहाते नजर आए, जिसे उनके प्रशंसकों ने काफी पसंद किया। इस महीने की शुरुआत में अभिनेता बिगबॉस की ट्रॉफी अपने घर लेकर आए, जिसके बाद वह अपने प्रतिदिन की रूटीन में वापस आ गए हैं। अब वह अपने नए वीडियो से लोगों को फिटनेस गोल देते नजर आ रहे हैं और जिम में खूब पसीना बहा रहे हैं। अभिनेता ने साथ ही अपने प्रशंसकों को खूब प्यार बरसाने और उनका समर्थन करने के लिए धन्यवाद भी कहा। ट्विटर इंडिया के अनुसार 'बिगबॉस १३' डिजीटल प्लेटफॉर्म पर हिट रहा। बीते साल २०१८ के शो के दौरान ४.१ करोड़ ट्वीट किए गए थे, जबकि उसके मुकाबले इस साल १ जनवरी २०२० से शो के खत्म होने यानी १५ फरवरी तक ही १0.५ करोड़ ट्वीट किए गए। बल्कि शो का यह सीजन अब तक से सभी सीजन से अधिक चर्चित रहा। (आईएएनएस)
.:: अग्निहोत्र से शरीर ही नहीं, मन का भी उपचार (अखिल विश्व गायत्री परिवार) अग्निहोत्र से शरीर... वनौषधियों के पंचांग को कूटकर खाने में उसे बडी़ मात्रा में निगलना कठिन पड़ता हैं। यही स्थिति ताजी स्थिति में कल्क बनाकर पीने में उत्पन्न होती है। इससे तो गोली या वाटिका बना कर सेवन करने में मनुष्य को कम कठिनाई अनुभव होती है। सूखी स्थिति से भी क्वाथ अर्क, आसव, अरिष्ट अधिक सुविधा जनक रहते हैं और प्रभावी भी होते हैं। ठोस और द्रव की उपरोक्त दोनों विधाओं से बढ़कर वाष्पीकृत औषधि की प्रभाव क्षमता अधिक व्यापक एवं गहरी होती है। नशा करने वाले मुँह से भी गोली या मादक द्रव्य लेते हैं व अपनी नसों में भी इन्जेक्शन लगाते हैं, पर इससे भी अधिक तीव्र व शीघ्र नशा उन्हें नाक से सूंघी हुई औषधि या रोगों में जिन तत्त्वों की कमी पड़ जाती हैं, उन्हें धूम्र में से आसानी से खींच लिया जाता है। साथ ही प्रश्वास द्वारा भीतर घुसी अवांछनीयता को बाहर धकेल कर सफाई का आवश्यक प्रयोजन पूरा कर लिया जाता है। बहुमुखी संतुलन बिठाने का माध्यम हर प्रकार की विकृतियों का निराकरण करने में असंदिग्ध रूप में सफल होता है अग्निहोत्र उपचार एक प्रकार की समूह चिकित्सा है, जिससे एक ही प्रकृति की विकृति वाले विभिन्न रोगी लाभान्वित हो सकते हैं। यह सुनिश्चित रूप में त्वरित लाभ पहुँचाने वाली, सबसे सुगम एवं सस्ती उपचार पद्धति है। जब वाष्पीभूत होने वाले औषध तत्वों को साँस के साथ घोल दिया जाता हैं तो रक्तवाही संस्थान के रास्ते ही नहीं, कण- कण तक पहुँचने वाले औषध तत्त्वों को सआँस के साथ घोल दिया जाता हैं तो रक्तवाही संस्थान के रास्ते ही नहीं, कण- कण तक पहुँचने वाले वायु संचार के रूप में भी वहाँ जा पहुँचता है, जहाँ उसकी आवश्यकता है। यह बहुविदित तथ्य है कि हाइपॉक्सिया (कॉमा) के रोगी को अथवा वेण्टीलेशन में व्यतिक्रम आने पर, साँस लेने में कठिनाई उत्पन्न होने पर नलिका द्वारा नाक से ऑक्सीजन पहुँचाई जाती है। किन्तु इस आक्सीजन को शुद्ध रूप में नहीं दिया जाता, इसमें कार्बन डायऑक्साइड की लगभग पाँच प्रतिशत मात्रा का भी एक संतुलित अंश रहता है, ताकि मस्तिष्क के केन्द्रों को उत्तेजित कर श्वसन प्रक्रिया नियमित बनायी जा सके। अग्निहोत्र में उत्पन्न वायु ऊर्जा में भी यही अनुपात गैसों के सम्मिश्रण का रहता है। विशिष्ट समिधाओं के प्रयुक्त स्तर का बना देती है। किन समिधाओं व किन वनौषधियों की कितनी मात्रा ऊर्जा उत्पन्न करने हेतु प्रयुक्त की जाय, यह इस विधा के विशेषज्ञ जानते हैं एवं तदनुसार परिवर्तन करते रहते हैं। शारीरिक रोगों एवं मनोविकारों से उत्पन्न विपन्नता से छुटकारा पाने के लिये अग्निहोत्र से बढ़कर अन्य कोई उपयुक्त उपचार पद्धति है नहीं, यह सब सुनिश्चित होता जा रहा है। जिस गम्भीरता एवं मनोयोग से वर्तमान शोध प्रयत्न चल रहा है, उसे देखते हुए लगता है कि निकट भविष्य में निश्चित ही एक ऐसी सर्वाङ्गपूर्ण चिकित्सा पद्धति का विकास हो सकेगा जो प्रचलित सभी उपचार पद्धतियों को पीछे छोड़कर अपनी विशिष्टता क्षेत्र की सभी विकृतियों के निराकरण की पूरी- पूरी सम्भावना है। ऐसी दशा में यज्ञोपचार पद्धति का प्रादुर्भाव मानवी भविष्य के लिए एक अभिनव उपलब्धि होगी।
साउथ अफ्रीका के खिलाफ टी-२० सीरीज के लिए भारतीय टीम का ऐलान हो गया है. बीसीसीआई (ब्क्सी) चयनकर्ताओं ने मुंबई में गुरुवार को टीम इंडिया का ऐलान कर दिया है. जैसा कि अंदेशा जताया जा रहा था कि इस सीरीज में महेंद्र सिंह धोनी को नहीं लिया जाएगा वो सच साबित हुआ. महेंद्र सिंह धोनी को टीम में जगह नहीं मिली है. वहीं, टीम में हार्दिक पांड्या की वापसी हुई है. भुवनेश्वर कुमार को आराम दिया गया है. राहुल चहर और दीपक चहर को टीम में बनाए रखा गया है. कुलदीप यादव, युजवेंद्र चहल की जोड़ी का टी-२० में आराम अभी बरकरार है. विंडीज दौरे पर गई टीम में हार्दिक पांड्या शामिल नहीं थे. उन्हें आराम दिया गया था. दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ सीरीज में भारतीय टीम में पांड्या का आना और भुवनेश्वर का जाना, एकमात्र बदलाव है. विंडीज दौरे पर धोनी ने आराम मांगा था लेकिन दक्षिण अफ्रीका सीरीज के लिए एमएसके प्रसाद की अध्यक्षता वाली पांच सदस्यीय चयन समिति ने धोनी को टीम से बाहर रखने का फैसला किया. विराट कोहली (कप्तान), रोहित शर्मा (उप कप्तान), केएल राहुल, शिखर धवन, श्रेयस अय्यर, मनीष पाण्डेय, रिषभ पंत (विकेटकीपर), हार्दिक पांड्या, रविंद्र जडेजा, क्रुणाल पांड्या, वाशिंगटन सुंदर, राहुल चहर, खलील अहमद, दीपक चहर और नवदीप सैनी टीम इंडिया का हिस्सा होंगे. आपको बता दें कि भारत की टीम सितंबर में साउथ अफ्रीका के खिलाफ ३ टी-२० मैच खेलने वाली है. १५ सितंबर से टी-२० सीरीज का आगाज होगा. पहला टी-२० धर्मशाला में १५ सितंबर को खेला जाएगा. वहीं दूसरा टी-२० मैच मोहाली में १८ सिंतबर को खेला जाना है. तीसरा टी-२० मैच बेंगलुरू में २२ सितंबर को खेला जाएगा. सभी टी-२० मैच शाम ७ बजे से खेले जाएंगे.
विवाहिता ने फंदा लगाकर की खुदकुशी, मामला दर्ज - कमित सुसाइड श्री मुक्तसर साहिब(तनेजा): गांव सुखना अबलू में कथित अवैध संबंधों के चलते एक विवाहिता द्वारा दुपट्टे से फंदा लगाकर खुदकुशी करने का मामला सामने आया है। इस घटना की सूचना मिलते एस.पी. (डी.) गुरमेल सिंह, डी.एस.पी. गुरतेज सिंह गिद्दड़बाहा व अंग्रेज सिंह एस.एच.ओ. कोटभाई ने पुलिस पार्टी सहित मौके पर पहुंच कर शव को कब्जे में लेकर पड़ताल शुरू कर दी है। इस संबंधी अंग्रेज सिंह एस.एच.ओ. कोटभाई ने बताया कि मृतका सुखदीप कौर पत्नी दर्शन सिंह के ससुर गुरचरण सिंह पुत्र जरनैल सिंह ने पुलिस को दिए बयानों में गांव के ही नरेन्द्र सिंह उर्फ नीटा पुत्र गुलाब सिंह पर आरोप लगाया कि उक्त व्यक्ति के मृतका के साथ अवैध संबंध थे तथा उसने ही मृतका को खुदकुशी के लिए मजबूर किया। पुलिस ने तुरंत कार्रवाई करते नरेन्द्र सिंह उर्फ नीटा पुत्र गुलाब सिंह के खिलाफ मामला दर्ज करके आगामी कार्रवाई शुरू कर दी है व शव को पोस्टमार्टम के लिए गिद्दड़बाहा के सिविल अस्पताल में भेज दिया है। मृतका सुखदीप कौर पत्नी दर्शन सिंह ३ बच्चों की मां थी व उसका पति किसी दूसरे राज्य में प्राइवेट सुरक्षा गार्ड के रूप में किसी कम्पनी में कार्य कर रहा है।
प्राकृतिक इतिहास संग्रहालय, लंदन, यूनाइटेड किंगडम हिसोर कला संस्कृति का इतिहास प्राकृतिक इतिहास का संग्रहालय प्राकृतिक इतिहास संग्रह के साथ एक वैज्ञानिक संस्थान है जिसमें पशुओं, पौधों, कवक, पारिस्थितिकी तंत्र, भूविज्ञान, पीलाटोलोजी, जलवायु विज्ञान और अधिक के वर्तमान और ऐतिहासिक रिकॉर्ड शामिल हैं। एक प्राकृतिक इतिहास संग्रहालय की प्राथमिक भूमिका है कि वे अपने अनुसंधान के लिए वर्तमान और ऐतिहासिक नमूनों के साथ वैज्ञानिक समुदाय प्रदान करें, जो प्राकृतिक दुनिया की हमारी समझ में सुधार करना है। कुछ संग्रहालयों में जनता के साथ प्राकृतिक दुनिया का सौंदर्य और आश्चर्य साझा करने के लिए सार्वजनिक प्रदर्शन होते हैं; इन्हें सार्वजनिक संग्रहालयों के रूप में जाना जाता है कुछ संग्रहालयों में उनके प्राथमिक संग्रह के अलावा गैर-प्राकृतिक इतिहास संग्रह भी शामिल हैं, जैसे इतिहास, कला, और विज्ञान से संबंधित प्राकृतिक इतिहास संग्रहालय एक विश्वस्तरीय आगंतुक आकर्षण और प्रमुख विज्ञान अनुसंधान केंद्र है। आज दुनिया की सबसे बड़ी चुनौतियों का सामना करने के लिए हम अपने अनूठे संग्रह और अनोखी विशेषज्ञता का उपयोग करते हैं। एक इंटरेक्टिव अनुभव में प्राकृतिक इतिहास खोज की कहानी का अन्वेषण करें, प्राकृतिक इतिहास बना रहा है, संग्रहालय शोधकर्ताओं और क्यूरेटर द्वारा आवाज उठाई गई है। अद्वितीय, नई सुविधाओं के साथ संग्रहालय के ८० मिलियन नमूनों में डुबकी: आभासी वास्तविकता में प्रागैतिहासिक समुद्री सरीसृप का मुकाबला करें, प्राकृतिक इतिहास विषयों से निपटने के दस नए प्रदर्शनों का दौरा करें, और छात्रों को प्राकृतिक रूप से अनुकूलन के बारे में जानने के लिए दीर्घाओं के माध्यम से एक अभियान पर ले जाएं। विश्व। पुनर्जागरण की अलौकिकताएं निजी संग्रह थीं जिनमें आमतौर पर प्राकृतिक इतिहास के विदेशी नमूनों को शामिल किया गया था, कभी-कभी नकली, अन्य प्रकार के वस्तु के साथ। पहला प्राकृतिक इतिहास संग्रहालय शायद १६ वीं शताब्दी के मध्य में ज़्यूरिख में स्थापित स्विस विद्वान कॉनरोड गेस्नर की थी। १६35 में पेरिस में स्थापित मुसुम नेशनल डी हिस्टोइयर प्रकृतिले, आज के प्राकृतिक इतिहास संग्रहालय के रूप में पहचाने जाने वाला पहला प्राकृतिक इतिहास संग्रहालय था। शुरुआती प्राकृतिक इतिहास संग्रहालयों को सीमित पहुंच की पेशकश की, क्योंकि वे आम तौर पर वैज्ञानिक संस्थाओं के निजी संग्रह या होल्डिंग थे। १६ ९ ८३ में खोलने वाले असमोलीयन संग्रहालय, आम जनता के लिए प्रवेश देने के लिए पहला प्राकृतिक इतिहास संग्रहालय था। प्रदर्शन के सबसे प्रसिद्ध और निश्चित रूप से सबसे प्रमुख डिप्पी केंद्रीय हॉल के भीतर स्थित फाउंडलकोस कार्नेगी कंकाल के १०५-फुट (३२ मीटर) -लंग प्रतिकृति है। संग्रहालय में प्रदर्शन के ११२ वर्षों के बाद, डायनासोर प्रतिकृति को २०१७ के शुरू में हटा दिया गया था ताकि वह एक युवा ब्लू व्हेल के वास्तविक कंकाल को बदल सके। डिप्पी २०१८ में ब्रिटिश संग्रहालयों के दौरे शुरू कर देंगे डिप्पी की जगह वाले नीले व्हेल कंकाल, संग्रहालय में एक और प्रतिष्ठित प्रदर्शन है। कंकाल का प्रदर्शन, कुछ २५ मीटर लंबा और १० टन वजन, केवल १ ९ ३४ में न्यू व्हेल हॉल (अब बड़े स्तनधारियों के हॉल) के निर्माण के साथ ही संभव हो गया था। व्हेल ४२ साल के लिए भंडारण में रहा था क्योंकि वेल्टर द्वारा घायल होने के बाद मार्च १8 ९ १ में वेक्सफोर्ड हार्बर, आयरलैंड के मुंह में रेत के किनारों पर फंसे हुए थे। डार्विन सेंटर आर्ची के लिए मेजबानी कर रहा है, जो एक आठ मीटर लंबी विशाल स्क्विड है जिसे २००४ में फॉकलैंड द्वीप समूह के पास मछली पकड़ने के जाल में जीवित किया गया था। स्क्वीड सामान्य प्रदर्शन पर नहीं है, लेकिन चरण के तहखाने में बड़े टैंक रूम में संग्रहीत १ बिल्डिंग संग्रहालय में आगमन पर, नमूना तुरंत स्थिर हो गया था, जबकि तैयारी अपने स्थायी भंडारण के लिए शुरू हुई थी। चूंकि प्रजातियों के कुछ पूर्ण और यथोचित ताजे उदाहरण मौजूद हैं, गीला भंडारण को चुना गया था, जिससे स्क्वीड अदृश्य हो गया। एक ९.४५ मीटर ऐक्रेलिक टैंक का निर्माण किया गया था (उसी टीम द्वारा जो डेमियन हार्स्ट को टैंक प्रदान करता है), और शरीर को फॉम्ररीन और लवण समाधान के मिश्रण के जरिये संरक्षित किया गया। संग्रहालय में नदी टेम्स व्हेल की एक हड्डियों और हड्डियां हैं, जो उत्तरी बोतलेनास व्हेल है जिसने २० जनवरी २०06 को अपना रास्ता खोया और टेम्स में तैर लिया। हालांकि मुख्य रूप से अनुसंधान उद्देश्यों के लिए उपयोग किया जाता था, और वंड्सवर्थ में संग्रहालय के भंडारण स्थल पर आयोजित होने पर, कंकाल को अस्थायी सार्वजनिक प्रदर्शन पर रखा गया था। डाइनोकोचली, पीलाटोलॉजी (अब मूल रूप से एक विशाल गैस्ट्रोपोड खोल माना जाता है, तब एक कॉपरलाईट और अब एक कीड़ा की सुरंग का कन्क्रिशन माना जाता है), १ ९ 2१ में अपनी खोज के बाद से इस संग्रह का हिस्सा रहा है। संग्रहालय अपने वन लॉन पर एक वन्यजीव उद्यान रखता है, जिस पर २००७ में आरोकैटस रोरसेली जैसी कीट की एक संभावित नई प्रजाति की खोज की गई थी।
होम न्यूज कोरोना के खिलाफ जंग में सरकार ने दिया पर्सनल बॉडीगार्ड, अजय देवगन ने कहा- धन्यवाद, देखें वीडियो कोरोना के खिलाफ जंग में सरकार ने दिया पर्सनल बॉडीगार्ड, अजय देवगन ने कहा- धन्यवाद, देखें वीडियो अजय देवगन और पीएम मोदी की तस्वीर अजय देवगन ने हर किसी से सरकार की इस मुहिम में उनका साथ देने और आरोग्य सेतु ऐप को डाउनलोड करने की अपील की है। वायरल हो रहे वीडियो में अजय देवगन एक्सरसाइज करते हुए नजर आ रहे हैं। तभी एक व्यक्ति उनसे मिलता है और खुद को उनका बॉडीगार्ड बताता है। वो कहता है कि वो उनका निजी बॉडीगार्ड है जो कोरोना से रक्षा करेगा। खुद अजय देवगन ने इस वीडियो को शेयर करते हुए लिखा है प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का धन्यवाद जिन्होंने कोरोना से लड़ने के लिए हर किसी के लिए पर्सनल बॉडीगार्ड बनाया है। बता दें ट्विटर पर इस समय #सेतुमराबॉडीगार्ड ट्रेंड कर रहा है और इस वीडियो के माध्यम से प्रत्येक को आरोग्य सेतु ऐप को डाउनलोड करने की सलाह दी जा रही है। आरोग्य सेतु ऐप की बात करें तो ये ऐप कोरोना वायरस संक्रमण के खतरे और जोखिम का आंकलन करने में लोगों की सहायता करता है। इसी के साथ ही यह ऐप लोगों को वायरस से संक्रमित व्यक्ति के पास जाने पर सतर्क भी करता है। अब सरकार ने इस मुहिम के साथ अजय देवगन को जोड़कर इस संदेश को अधिक से अधिक लोगों तक पहुंचाने की कोशिश की है। जिससे यह ज्यादा से ज्यादा लोग डाउनलोड कर लें। देश में कोरोना का संकट लगातार बढ़ता ही जा रहा है। जिसके चलते सरकार की भी परेशानियां बढ़ गई हैं। देश में कुल संक्रमित व्यक्तियों की संख्या का आंकड़ा २० हजार पार कर गया है। वहीं ६०० से अधिक लोगों की जान भी जा चुकी है। वर्क फ्रंट की बात करें तो अजय देवगन ने अपनी लास्ट फिल्म तानाजी से बॉक्स ऑफिस पर धमाल मचा दिया था। तानाजी ने शानदार कमाई की थी। वहीँ उनकी अपकमिंग फिल्म भुज द प्राइड ऑफ इंडिया है। फिल्म की शूटिंग कोरोना के चलते अभी रोक दी गई है। इसी के साथ ही अजय देवगन, एस एस राजामौली की फिल्म र में भी नजर आएंगे। सोनू सूद ने २०० इडली वेंडर को पहुंचाया घर, उन्होंने आरती उतारकर किया शुक्रिया अदा, देखें वीडियो फोटो: शाहरुख खान और अक्षय कुमार के साथ करण जौहर ने शेयर किए थ्राउबेक तस्वीरें गैस लीक: मुंबई में गैस लीक होने की सूचना से मचा हड़कंप, मंत्री आदित्य ठाकरे ने कहा-हालात नियंत्रण में है एकता कपूर को मिल रही हैं बलात्कार की धमकिया, कहा-सेक्स शब्द गलत हैं लेकिन रेप शब्द ठीक?
मुंबई में टेरेस पब में लगी भीषण आग, १४ लोगों की मौत, तस्वीरों में देखें कितना भयानक था हादसा टेरेस पब से उठती आग की लपट। आग बुझने के बाद कुछ इस तरह दिखा टेरेस पब। राख में तब्दील हुआ टेरेस पब। इस हादसे में काफी लोग घायल हुए। राख में तब्दील हुआ पब। हादसे के बाद अपनों की चिंता में इस तरह परेशान दिखे लोग। लोगों को सुरक्षित निकालते दमकलकर्मी। पीड़ितों को अस्पताल पहुंचाते स्वास्थ्यकर्मी लोवर परेल इलाक
पांच दिन से इंटरनेट सुविधा बंद बांसवाड़ा. जिले के सबसे बड़े सरकारी अस्पताल राजकीय महात्मा गांधी चिकित्सालय में इंटरनेट सुविधा बाधित होने से ऑनलाइन पर्चियां बनाने का काम ठप है और इससे कार्मिक और मरीज दोनों परेशान हैं। यह आई दिक्कत दरअसल, कुछ माह पूर्व प्रबंधन की ओर से मरीजों की पर्चियों की ऑफलाइन एंट्री बंद कर दी गई थी और पूर्णतया ऑनलाइन एंट्री कर दी थी। लेकिन इंटरनेट सेवा पर पूर्णतया निर्भर इस व्ययवस्था का प्रबंधन ने कोई ठोस विकल्प नहीं तलाशा। पांच दिनों से इंटरनेट न चलने के कारण काउंटर पर ऑनलाइन पर्चियां बनाने में कार्मिकों का दिक्कत आ रही है। गत पंाच दिनों से आ रही इंटरनेट की समस्या से परेशान लोगों के सब्र का बांध गुरुवार को टूट गया। सुबह ओपीडी के समय मरीजों से प्रबंधन की व्यवस्थाओं को लेकर खरी-खरी सुनाई। काफी होहल्ला होने के बाद आनन फानन में कार्यवाहक नर्सिंग अधीक्षक ने पीएमओ के डोंगल से व्यवस्था कराई। लेकिन पासवर्ड लगा होने के कारण काम नहंी हो सका। इसलिए उठा बवाल दरअसल, गत पांच दिनों से बिना इंटरनेट के कार्मिक जैसे-तैसे कार्य कर रहे हैं। लेकिन बुधवार को इंजेक्शन कक्ष में तैनात कार्मिक ने मरीज की पर्ची पर बिना ऑनलाइन या ऑफलाइन नम्बर के इंजेक्शन लगाने से मना कर दिया। जिसके बाद विवाद शुरू हुआ। ऐसा ही विवाद मंगलवार शाम को भी हुआ था। लेकिन भीड़ कम होने के कारण कार्मिकों ने ही आपस में निपटा लिया। लेकिन बुधवार को भीड़ ज्यादा होने के कारण समस्या बढ़ गई। हो जाएगा समाधान इंटरनेट न चलने का मामला प्रबंधन के सामने नहीं आया। हां गुरुवार को उपचार न मिलने के कारण कुछ मरीज उखड़ गए थे। समस्या निपटाने के लिए व्यवस्था कर दी गई है। इंटरनेट सर्विस प्रोवाइडर कम्पनी को सूचना कर दी गई है। समाधान हो जाएगा। - दीपक भट्ट, कार्यवाहक नर्सिंग अधीक्षक, महात्मा गांधी अस्पताल जब सलमान ने सुना पिता सलीम का ये खास मैसेज, टीवी शो पर आखें हुई नम! बांसवाड़ा : नहाते हुए डूब रही मासूम बेटी को बचाने नदी में कूद गई मां और मौसी, तीनों की दर्दनाक मौत
कविता से दिया बेटी बचाने का संदेश | कविता से दिया बेटी बचाने का संदेश - शाहपुरा न्यूज,शाहपुरा न्यूज़,शाहपुरा समाचार कविता से दिया बेटी बचाने का संदेश शाहपुरा न्यूज - भास्कर संवाददाता | कंवलियास रूपाहेली कलां में श्रीराम युवा सेवा समिति एवं ग्रामीणों की ओर से शनिवार रात अखिल... भास्कर संवाददाता | कंवलियास रूपाहेली कलां में श्रीराम युवा सेवा समिति एवं ग्रामीणों की ओर से शनिवार रात अखिल भारतीय कवि सम्मेलन का आयोजन राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय में किया गया। कवि सम्मेलन की शुरुआत कवयित्री निशा पंडित उज्जैन ने मां सरस्वती वंदना से की। कवि कमलेश शर्मा ने कविता धन्य है मोदी जी जो पूरा का पूरा देश चला रिया है...सुनाई। हास्य कवि सूरत अजनबी ने बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ पर रचना सुनाकर खूब तालियां बटोरी। आप सोचो क्या होगा जब लड़के होंगे तीन और लड़की होगी एक... कविता पर दाद मिली। शाहपुरा के हास्य कवि दिनेश बंटी ने भूखों ब्राह्मण नाहर बराबर होवे...कविता सुनाई। नेताओं पर कटाक्ष करते हुए कहा कि अगले चुनाव में भ्रष्ट नेता का सूपड़ा साफ कर दो...। नोट बंदी पर भी हास्य कविताएं पढ़ी। गीतकार प्रेम शास्त्री, कवि कैलाश मंडेला ने राजस्थानी मायड़ भाषा में कविता सुनाई। काली थू तो मारा घर की दिवाळी... लगा कुर्सी पर दाग छुड़ाऊं कैसे...आदि कविताएं सुनाई। विजयपुर के कवि अनिल व्यास, भीलवाड़ा के हास्य कवि दीपक पारीक, कवि परमानंद दाधीच ने भी कविता पाठ किया। महंत राजेंद्र दास महाराज के सानिध्य में मां सरस्वती को दीप प्रज्ज्वलित किया गया। विधायक प्रतिनिधि राजेंद्र गुर्जर, वीर वीरेंद्र विक्रम देव सिंह लड्डू बना, नरेंद्र भंडारी, श्रीराम युवा सेवा समिति के सदस्यों ने कवियों व अतिथियों का स्वागत किया। रूपाहेली कलां में कवि सम्मेलन का आयोजन कंवलियास. रूपाहेली में कविता पाठ करते कवि दिनेश बंटी।
घर के लिए वास्तु टिप्स! आज के समय में हर एक व्यक्ति अपने घर में सुख शांति व् खुशहाली देखना चाहता है. मनुष्य अपने परिवार को बिमारियों, अकस्मात दुर्घटनाओं, मानसिक दिक्कतों से दूर रखने के लिए वास्तुशास्त्र की ओर भागता है. अगर आपके आशियाने में धन संपत्ति, आपसी तालमेल, सुख-शांति आदि की कमी है तो इसका एक मात्र कारण है वास्तु दोष. आपकी इसी समस्या को नजर में रखते हुए आज हम आपके लिए कुछ वास्तु टिप्स लेकर आयें है. इन वास्तु टिप्स को अपनाकर आप अपने सपने के महल को वास्तु दोष से रहित बना सकते है. ये वास्तु टिप्स दिल्ली के मशहूर वास्तु विशेषज्ञ बताते है. परिवार के सदस्यों में आपसी तालमेल बना रहें इसके लिए आपके घर में तुलसी का पौधा होना बहुत जरुरी है. वास्तु के अनुसार घर में पांच तुलसी के पौधे अवश्य होने चाहिए. सूर्य देव की किरणें घर में पड़ना शुभ माना जाता है. इसके लिए आपको अपने गृह की ईशान कोण (उत्तर-पूर्व) को हमेशा साफ-सुथरा रखना होगा. घर की लक्ष्मी को खाना हमेशा पूर्व की मुंह करके पकाना चाहिए. इससे भोजन स्वादिष्ट तो बनेगा ही साथ ही पाचन शक्ति में भी वृद्धि होगी. रात्रि में सोते समय व्यक्ति का सिर दक्षिण दिशा की ओर होना चाहिए. वास्तु के अनुसार रात्रि में उत्तर दिशा की तरफ सिर होने से अनिद्रा रोग होने की संभावना होती है. घर से नकारात्मक उर्जा को दूर करने के लिए नमक का पोंछा लगाना चाहिए. ब्रहस्पति और बुद्ध को ठीक रखने के लिए व्यक्ति को घर से किसी भी काम के लिए निकलने से पहले अपने माता-पिता का आशीर्वाद जरुर लेना चाहिए. घर में लक्ष्मी की वृद्धि के लिए घर का मेन गेट हमेशा साफ़-सुथरा होना चाहिए. प्रवेश द्वार पर किसी प्रकार के जूते चप्पलों का ढेर न हों. अपने बेडरूम में किसी भी देवी-देवता की तस्वीर भूलकर भी न लगायें. घर की रसोई में पानी की दिशा उत्तर व गैस की दिशा पूर्व होनी चाहिए. रसोई में कभी भी नीला रंग नहीं करवाना चाहिए. वास्तुशास्त्र के अनुसार हमे अपने घर में किसी भी प्रकार का कूड़ा कचरा जैसे बिजली का फ़ालतू सामान, फटे-पुराने जूते-मौजे, टूटे-फूटे फर्नीचर आदि इक्कठा नहीं करना चाहिए. ऐसा करने से आप हमेशा बेकार की परेशानियों से घिरे रहेंगे. घर के किसी भी कमरे में शीशा दक्षिण की दिवार पर नहीं होना चाहिए. ध्यान रखें की दर्पण हमेशा पूर्व या उत्तर की दिवार पर ही हों. वास्तु के अनुसार घर में सीलन नहीं होनी चाहिए. इस बात का भी विशेष ध्यान रखना चाहिए. पुणे के वास्तु विशेषज्ञ का ये दावा है कि अगर आप अपना घर वास्तु के हिसाब से बनायेंगे तो आपके घर में सुख शांति की कमी नहीं रहेगी. आपका घर व उसमें रहने वाले सदस्य सदेव सुख, शांति, समृद्धि से भरपूर रहेंगे. मुंबई के ज्योतिष घर के वशीकरण उपाय भी बताते है. उनके बताये हुए उपाय हम जल्दी ही आपको अपने नए आर्टिकल में बतायेंगे.
बीजेपी विधायक ने रेप की घटनाओं में भगवान् राम को भी घसीटा लखनऊ: देशभर में बलात्कार की घटनाओं पर जहाँ लोगों में गुस्सा भड़का हुआ है तो वहीँ कुछ बीजेपी नेताओं ने अब रेप पीड़ितों के जख्मों पर नमक मलना शुरू कर दिया है. बलात्कार की घटनाओं पर बीजेपी के एक नेता ने बेहद ही विवादित बयान दिया है. बतादें रेप की वारदातों पर सरकार और उनके नेताओं का रवैया कितना शर्मनाक है इसका अंदाजा आप इस बात से लगा सकते है कि रेप जैसे जघन्य अपराधों पर रोक की बजाय उस कथित बयानबाजी के जरिये बीजेपी के नेता अपनी सरकार की नाकामी को छुपाने में लगे हैं. महिलाओं के प्रति बने माहौल को लेकर बीजेपी नेताओं की बदजुबानी लगातार जारी है. अपने बदजुबानी के लिए पहचान बनाने वाले उत्तर प्रदेश के बलिया से बीजेपी विधायक सुरेंद्र सिंह एक बार फिर से महिलाओं के लिए विवादित बयान दिया है. दरअसल रेप और राज्य में महिलाओं के साथ हो रही उत्पीडन की घटनाओं पर बीजेपी के बदजुबान विधायक सुरेन्द्र सिंह ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि, मैं एक ही चीज कह सकता हूं कि भगवान राम भी धरती पर आ जाएंगे तब भी रेप की घटनाएं नहीं रुकेंगी. इसकी लिए उन्होंने कानून नहीं बल्कि समाज को जिम्मेदार बताने की कोशिश की. उन्होंने कहा कि यह हम सबका कर्तव्य है कि हम बच्चों को नैतिकता का पाठ पढ़ाएं. उन्होंने कहा कि कानून और संविधान रेप की घटनाओं पर आरोपियों को जेल भेजने के सिवा कुछ नहीं कर सकता है. दरअसल विधायक उन्नाव में हुई सरेआम गैंगरेप की कोशिश की घटना पर मीडया से रूबरू हो रहे थे. इसी दौरान उन्होंने रेप के मामलों में भगवान् राम को भी घसीट लिया. वहीँ बीजेपी नेता के विवादित बोल उन हजारों रेप पीड़ितों पर नमक मलने जैसा है जो इस दंश को झेल रही हैं.
लखनऊ: जैश-ए-मोहम्मद के आतंकी उत्तर प्रदेश में किसी बड़ी घटना को अंजाम देने की फिराक में हैं। इसका खुलासा सहारनपुर के देवबंद से पकड़े गए २ संदिग्ध आतंकियों शाहनवाज और आकिब के मोबाइल से मिले बातचीत के ब्योरे से हुआ है। मोबाइल के रिकवरी डाटा में इस संगठन से जुड़े कई अन्य नामों का भी खुलासा होने की बात कही जा रही है। इस जानकारी को जम्मू-कश्मीर पुलिस के साथ सांझा किया गया है। यूपी में आतंकी घटना की संभावना के बाद से सुरक्षा एजेंसियां सतर्क हो गई हैं। सार्वजनिक स्थलों पर चौकसी बढ़ाने के साथ ही पुलिस कप्तानों को हर छोटी सूचना को भी वरिष्ठ अफसरों संग सांझा करने के निर्देश दिए गए हैं। २३ फरवरी को देवबंद के एक होस्टल से संदिग्ध आतंकी शाहनवाज और आकिब को गिरफ्तार किया गया था। २२ फरवरी की रात इन दोनों के कमरे पर एक खास मेहमान आया था, दोनों ने जिसकी खातिरदारी चिकन और बिरयानी से की थी। शुरूआती पूछताछ में शाहनवाज ने उसे मदरसे का सामान्य व्यक्ति बताया था लेकिन कड़ाई से पूछताछ के बाद विस्तार से बता दिया। खबरों के मुताबिक रिमांड के ७वें दिन दोनों आतंकियों ने एटीएस की पूछताछ में खुलासा किया कि छापेमारी से एक दिन पहले उन्होंने जैश-ए-मोहम्मद के एरिया कमांडर के लिए अपने कमरे में पार्टी रखी थी, जिसमें देवबंद के कुछ छात्रों के अलावा बाहर से भी लोग भी शामिल हुए थे। इन दोनों ने ही कबूल किया कि एरिया कमांडर लखनऊ, सहारनपुर, मेरठ, अलीगढ़ समेत कई शहरों में गया था और करीब दर्जन भर युवकों से मिला था, जिनसे पूछताछ की जा रही है। एटीएस के एडीजी असीम अरुण का कहना है कि एटीएस आतंकी घटनाओं को रोकने का प्रयास कर रही है। डीजीपी की वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के दौरान उन्होंने पुलिस कप्तानों से कहा है कि किसी भी संदिग्ध व्यक्ति या चीज की जानकारी मिले तो तत्काल उसकी पड़ताल करें और इसे शीर्ष अफसरों के संज्ञान में जरूर लाएं। हाल ही में एयर इंडिया के विमान में विस्फोट की धमकी के बाद अमौसी एयरपोर्ट पर हाई अलर्ट घोषित करते हुए हवाई-अड्डे की सुरक्षा और बढ़ा दी गई है। एयरपोर्ट पर विजिटर्स एंट्री भी बंद कर दी गई है। यात्रियों से सहयोग का अनुरोध करते हुए एयरपोर्ट पर आने के लिए अतिरिक्त समय लेकर चलने को कहा गया है, साथ ही एयरपोर्ट या उसके आसपास संदिग्ध सामान या संदिग्ध व्यक्ति दिखने पर टर्मिनल मैनेजर या फिर एयरपोर्ट प्रशासन को जानकारी देने की बात कही है। बेखौफ बदमाशः लूटपाट का विरोध करने पर व्यापारी के बेटे को मारी गोली
वॉल स्ट्रीट घेरो आंदोलन के निहितार्थ | अवधभूमि वॉल स्ट्रीट घेरो आंदोलन के निहितार्थ अमेरिका और यूरोपीय देशों सहित विश्व भर के ८२ देशों में पूंजीवाद विरोधी आंदोलन चल रहे हैं। इस आंदोलन कोआक्यूपाइ वाल स्ट्रीट जनरल नाम दिया गया है। ८२ देशों के विभिन्न शहरों और स्टॉक एक्सचेंजों के आसपास जमा भीड़ वर्तमान आर्थिक ढांचे के लिए एक चेतावनी के रूप में दिखाई दे रही है। न्यूयॉर्क के टाइम्स स्क्वायर में और अन्य देशों के प्रमुख शहरों में जमा आंदोलनकारी अपनी आजीविका छीनने और रोजगार के कम अवसरों के कारण हताश हैं। यूरोपीय संघ में कर्ज संकट गहराने और अमेरिका में आई मंदी ने वैश्विक अर्थव्यवस्था को गहरे से प्रभावित किया है। समस्त विश्व के लिए अनुकरणीय आर्थिक मॉडल और सुपर पॉवर बने अमेरिका की असली तस्वीर अब सबके सामने है। गौरतलब है कि वह अमेरिका जो दुनिया की आर्थिक ग्रोथ का इंजन था, अब उसमें ठहराव आने लगा है। रीयल एस्टेट के कारोबार और उपभोक्ता संस्कृति पर आधारित अर्थव्यवस्था अब ढलान की ओर है। इसी समय में पूंजीवादियों के द्वारा आम लोगों के पोषण और भ्रष्टाचार ने व्यवस्था के प्रति आम अमेरिकियों के गुस्से को और बढ़ा दिया है। तानाशाही शासन के विरोध में खाड़ी देशों और भारत में हुए आंदोलन के बाद अमेरिका में भ्रष्टाचार को लेकर उपजे गुस्से ने आंदोलनों का वैश्वीकरण कर दिया है। अमेरिका और यूरोपीय संघ के देश आर्थिक रूप से समृद्ध देशों की श्रेणी में आते हैं। आंदोलन इन देशों में कम ही देखने को मिलते हैं, ऐसे में इन देशों में बड़ी संख्या में प्रदर्शनकारियों का एकत्रीकरण समस्या की जटिलता को उजागर करता है। प्रदर्शनकारी हमारा पैसा वापस करो और परमाणु परियोजनाएं बंद करो जैसे नारे लगा रहे हैं। फिलीपिंस में तो प्रदर्शनकारियों ने अमेरिकी दूतावास के सामने प्रदर्शन किया और साम्राज्यवाद मुर्दाबाद के नारे लगाए, और अमेरिका को चेताते हुए फिलीपिंस बिकाऊ नहीं है का उद्घोष किया। विश्व के ८२ देशों में चल रहे इस प्रकार के आंदोलन अमेरिकी आर्थिक मॉडल के अवसान की घोषणा कर रहे हैं। सन् २००८ में ११७ वर्ष पुराने बैंक लेहमन ब्रदर्स के डूबने के साथ ही अमेरिका और उससे व्यापारिक तौर पर जुड़े राष्ट्रों में मंदी की आहट सुनाई पड़ी थी। उसके बाद अमेरिका ने अपने बैंको के डूबने के सिलसिले को रोकने के लिए और बाजार में मांग बढ़ाने के लिए राहत पैकेजों की घोषणाएं की थीं। इन राहत पैकेजों के माध्यम से जब तक अर्थव्यवस्था संभलती उससे पहले ही कर्ज संकट ने एक बार फिर अमेरिकी व्यवस्था को हिला दिया। बाजार में मांग कम होने के कारण अमेरिकी कंपनियां वहां के श्रमिकों को अधिक वेतन पर रखने की बजाय एशियाई मूल के लोगों को रोजगार दे रही हैं। जिससे उनके उत्पादों में लगने वाले लागत मूल्य में कमी आ जाती है। हालांकि राष्ट्रपति ओबामा ने आउटसोर्सिंग पर रोक लगाने का ऐलान किया था, परंतु कंपनियों के दबाव के कारण उनको अपने रवैये में बदलाव करना पड़ा। जिसके परिणामस्वरूप अमेरिकी नागरिकों की बेरोजगारी का प्रतिशत एक बार फिर बढ़ गया। बाजार में मंदी और आउटसोर्सिंग ने अमेरिकी नागरिकों के सामने दोहरी समस्या खड़ी कर दी है। अमेरिका में आने वाली कोई भी समस्या विश्व भर की समस्या बन जाती है और अमेरिका की कामयाबी को भी वैश्विक सफलता के रूप में प्रचारित किया जाता है। इसका कारण यह है कि विश्व की अर्थव्यवस्था डॉलर आधारित अर्थव्यवस्था है, ऐसे में अमेरिका से व्यापारिक तौर पर जुड़े देशों पर इसका प्रभाव पड़ना लाजिमी है। अमेरिकी अर्थव्यवस्था में आ रहा ठहराव हमारे सामने भी कुछ प्रश्न खड़े करता है। जिनमें से प्रमुख हैं- क्या उपभोक्ता आधारित संस्कृति के भरोसे भारत एक मजबूत और स्थिर महाशक्ति बन सकता है? क्या जीडीपी हमारी आर्थिक संवृद्धि को मापने का सही पैमाना है? सबसे बड़ा प्रश्न इस आर्थिक मॉडल के तहत है, आय का असमान वितरण। गरीब और अमीर के बीच चौड़ी होती खाई, और चंद लोगों की उन्नति होने से क्या कोई राष्ट्र विकसित राष्ट्र हो सकता है? ऐसे कुछ सवालों के जवाब हमें तलाशने चाहिए और अपनी आर्थिक नीतियों की एक बार फिर से समीक्षा करनी चाहिए। जिस अमेरिकी मॉडल का अनुकरण करते हुए हम आगे बढ़ रहे हैं, वह अमेरिका में ही सफल नहीं हो पाया है। ऐसे में अमेरिकी मॉडल के अंधानुकरण करने की नीतियों की एक बार हमें समीक्षा करते हुए, इन आंदोलनों से सबक लेना चाहिए। मिशनरी पत्रकार थे महात्मा गांधी विकिलीक्स को बचा लो
विदुर नीति-जिस लाभ से बाद में हानि हो, वह सुखद नहीं (लाभ और हानी-विदुर नीति) | दीपक भारतदीप की हिंदी पत्रिका न स क्षयो महाराज यः क्षयो बुद्धिमावहेत्। क्षय सत्विह मन्तव्यो यं लब्धवा बहु नाशयेत्।। हिन्दी में भावार्थ-वास्तव में जो हानि या क्षय भविष्य में वृद्धि का कारण बने उसे लाभ ही समझना चाहिये। जिस लाभ से भविष्य में अनेक हानियां हों उसे तो हानि ही समझना चाहिये। समृद्धा गुणतः केचिद् भविन्त धनतोऽपरे। धनवृद्धान गुणंहीनान् धृतराष्ट्र विसर्जन।। हिन्दी में भावार्थ-कुछ मनुष्य धनाभाव में जीते हुए भी गुणवान होते हैं और कुछ धन होते हुए भी गुण की दृष्टि से विपन्न होते हैं। इसलिय गुणहीन व्यक्ति का त्याग कर देना चाहिये। वर्तमान संदर्भ में संपादकीय व्याख्या-अनेक ऐसे लाभ हैं जो बाद में हानि का कारण बनते हैं। जैसे शराब, सिगरेट तथा अन्य मादक पदार्थ सेवन के समय अच्छे लगते हैं पर बाद में उससे जो शारीरिक और मानसिक हानि होती है उसका आंकलन कोई नहीं करता। उसी तरह जुआ, लाटरी या सट्टा में जब किसी को प्रारंभ में ही लाभ होता है तो समझ लो वह गया काम से! उसके बाद जो तबाही का दौर शुरु होता है तो उसमें व्यसनी लोगों के परिवार तक बर्बाद हो जाते है। अनेक बार गलत ढंग से धन आने पर लोग खुश होते हैं कि चलो आया तो सही, पर जब उसके कारण ही फंसते हैं तो फिर वहां से निकलना कठिन हो जाता है। यही कारण है कि अपने पास आने वाले धन और समय समय पर होने वाले लाभों पर भी विचार करना चाहिये कि वह कहीं अनुचित मार्ग के अनुसरण से तो नहीं प्राप्त हुए। दूसरी तरफ अपने साथ संपर्क रखने वाले लोगों पर भी दृष्टि रखना चाहिये। धनी लोगों में अहंकार अधिक होता है और गुण कम और साथ ही उनमें संघर्ष क्षमता का भी अभाव होता इसलिये संकट पड़ने पर वह मैदान छोड़कर भागते हैं यह कहते हुए कि हमारे पास समय नहीं है और हमें बहुत सारे दूसरे भी काम है। अतः हमेशा निर्धन और गुणवान लोगों को अपने साथ रखना चाहिये। समय आने पर वह उपयोगी सिद्ध होते हैं इसलिये उनकी आवश्यकताओं का भी ध्यान रखते हुए यथासंभव उनकी पूर्ति करना चाहिये। गरीब नमक का कर्ज चुकाता है जबकि अमीर तो अधिकार की तरह खाकर भूल जाता है। कुछ अमीरों को तो यह लगता है कि हमारे पास पैसा है इसलिये लोग चमचागिरी कर खिला रहे हैं तो कुछ इसे चालाकी समझते हैं और समय आने पर कहते भी हैं कि हमें पता था कि तुम हमारी मदद कुछ पाने की चाहत में कर रहे थे, पर हम भी चालाक हैं इसलिये नहीं करते तुम्हारा काम! इसलिये प्रयास यही करें कि किसी की दौलत, शौहरत या बाहुबल देखकर उसे मित्र न बनायें बल्कि यह देखें कि समय पड़ने पर वह काम आयेगा कि नहीं। संकलक एवं संपादक-दीपक भारतदीप,ग्वालियर पाठ मूल रूप से इस ब्लागशब्दलेख सारथी पर लिखा गया है। अन्य ब्लाग१.दीपक भारतदीप की शब्द लेख पत्रिका२.दीपक भारतदीप की अंतर्जाल पत्रिका३.दीपक भारतदीप का चिंतन बाय दीपक भारतदीप, ऑन १३/०२/२०१० एट १०:२२, अन्डर आस्था, संदेश, संस्कार, सत्संग, समाज, हिन्दी साहित्य, हिन्दू धर्म. टैग्स: आस्था, संदेश, संस्कार, सत्संग, समाज, हिन्दी साहित्य, हिन्दू धर्म. कोई टिप्पणी नहीं पोस्ट आ कमेंट और लीवे आ ट्रऐकक: ट्रऐकक उर्ल. सच कटु तो सपने रंगीन-हिन्दी व्यंग्य कविताएँ चाणक्य नीति- अभ्यास से ही ज्ञान का घड़ा भर जाता है
बजट के बाद अब वित्त वर्ष को भी बदलने की तैयारियां चल रही है। संसदीय समिति ने इस संबंध में एक सुझाव दिया है।नई दिल्ली: आम बजट की तारीख बदलने और सिर्फ एक बजट (रेल और आम बजट अलग अलग नहीं) पेश करने के बाद अब वित्त वर्ष को भी बदलने की तैयारियां चल रही है। दरअसल संसद की एक समिति ने देश में वित्त वर्ष का समय बदलकर जनवरी-दिसंबर करने का सुझाव दिया है। मौजूदा समय में देश का वित्त वर्ष अप्रैल से मार्च तक गिना जाता है। समिति ने क्या कहा: समिति ने कहा है कि अप्रैल से मार्च के वित्त वर्ष की अंग्रेजों की ओर से शुरू की गई दशकों पुरानी परपंरा को अब खत्म कर देना चाहिए। वित्त वर्ष की मौजूदा व्यवस्था भारत सरकार ने साल १८६७ में अपनाई थी, जिसका मुख्य उद्देश्य भारत के वित्त वर्ष को ब्रिटेन सरकार के वित्त वर्ष के साथ मिलाना भर था। साल १८६७ से पहले भारत में वित्त वर्ष एक मई से शुरू होता था और अगले वर्ष ३० अप्रैल को समाप्त होता था।आपको बता दें कि कांग्रेस सांसद एम वीरप्पा मोइली की अध्यक्षता वाली वित्त मंत्रालय से जुड़ी संसदीय समिति ने बजट पेश करने की तिथि पहले खिसकाने के मामले में जल्दबाजी को लेकर वित्त मंत्रालय की तीखी आलोचना भी की थी। इसके पीछे समिति की यह दलील थी कि बजट एक महीना पहले पेश किए जाने से पहले अच्छी तैयारी और पर्याप्त जमीनी कार्य किए जाने चाहिए थे। १ जनवरी से शुरु हो सकता है वित्त वर्ष, सिफारिशों पर विचार कर रही है सरकार अब जनवरी में बजट पेश करने की तैयारी! प्रक्रिया में बदलाव कर रहा है वित्त मंत्रालय वित्त वर्ष २०१७ में भी विनिवेश का लक्ष्य हासिल करना चुनौतीपूर्ण इंडिया रेटिंग्स एंड रिसर्च का अनुमान, अगले वित्त वर्ष में बढ़ेगी महंगाई हवाई टिकट की कीमत पर सीमा लगाने पर गौर करे सरकार: संसदीय समिति वित्त वर्ष २०१७-१८ में ७.२ फीसद की ग्रोथ रेट से बढ़ेगा भारत: विश्व बैंक क्या आपको उम्मीद है कि संसदीय कामकाज के नजरिये से नया साल २०१५ की तुलना में बेहतर साबित होगा? पूर्ण पोल देखें
सिटी पार्क मेट्रो स्टेशन का नाम राजनीतिक द्वेष के चलते देवीलाल नहीं रखा : दलाल | सिटी पार्क मेट्रो स्टेशन का नाम राजनीतिक द्वेष के चलते देवीलाल नहीं रखा : दलाल सिटी पार्क मेट्रो स्टेशन का नाम राजनीतिक द्वेष के चलते देवीलाल नहीं रखा : दलाल मेट्रो स्टेशन के नाम को लेकर इनेलो पार्टी भी ताल ठोक रही है। इस बार इनेलो ने मेट्रो स्टेशनों के नामकरण पर क्षेत्र... मेट्रो स्टेशन के नाम को लेकर इनेलो पार्टी भी ताल ठोक रही है। इस बार इनेलो ने मेट्रो स्टेशनों के नामकरण पर क्षेत्र की पहचान मिटाने का आरोप लगाया है। शहर के तीन मेट्रो स्टेशनों में किसी का भी नाम बहादुरगढ़ के नाम पर नहीं होने पर सवाल उठाते हुए इनेलो ने इसे क्षेत्र और यहां की जनता का अपमान करार दिया है। इस सम्मान की लड़ाई के लिए इनेलो ने आंदोलन का एलान किया है। इनेलो जिला प्रधान महासचिव संजय दलाल ने मंगलवार को पत्रकार वार्ता में कहा कि आम तौर पर देखा गया है कि हर शहर या क्षेत्र में मेट्रो स्टेशन का नाम उस स्थान के नाम पर रखा जाता है। मगर बहादुरगढ़ में इसका पूरी तरह उल्ट हो रहा है। देवीलाल पार्क में बने मेट्रो स्टेशन का नाम सिटी पार्क रख दिया गया है, जबकि शहर के मुख्य स्टेशन का नाम बहादुरगढ़ न रखकर बस अड्डा मेट्रो स्टेशन रख दिया है। यहां हैरत की बात यह है कि इस जगह बस अड्डा है ही नहीं, मेट्रो स्टेशन के चलते उसे पहले ही स्थानांतरित किया जा रहा है। संजय दलाल ने आरोप लगाया कि कांग्रेस सरकार के समय शुरू किए मेट्रो निर्माण के समय ही देवीलाल पार्क में बन रहे मेट्रो स्टेशन का मान राजनीतिक द्वेष के चलते सिटी पार्क रख दिया गया, जबकि किसी दस्तावेजों में कहीं भी सिटी पार्क का कहीं जिक्र नहीं है। कल डीसी को देंगे ज्ञापन इनेलो नेता संजय दलाल ने कहा कि १० मई को परनाला में होने वाले डीसी के जनता दरबार में दोनों मेट्रो स्टेशनों के नाम सुधार की मांग की जाएगी। अगर उनकी मांग नहीं मानी गई तो इनेलो पार्टी जनता के साथ क्षेत्र के सम्मान की लड़ाई लड़ने के लिए सड़क पर उतरेगी।
चौटाला परिवार को एकजुट करने की मुहीम पहुंची चौटाला गाँव में, ग्रामवासियों ने किया मुहीम का समर्थन - डब्वाली न्यूज होम हरियाणा इनल्ड ज्जप पॉलिटिकल चौटाला परिवार को एकजुट करने की मुहीम पहुंची चौटाला गाँव में, ग्रामवासियों ने किया मुहीम का समर्थन चौटाला परिवार को एकजुट करने की मुहीम पहुंची चौटाला गाँव में, ग्रामवासियों ने किया मुहीम का समर्थन चौटाला परिवार की एकजुटता को लेकर प्रयास कर रहे हरियाणा स्वाभिमान आंदोलन के अध्यक्ष रमेश दलाल व् कुछ अन्य किसान व् खाप प्रतिनिधि बुधवार को ओम प्रकाश चौटाला के पैतृक गाँव चौटाला पहुंचे तथा ग्रामवासियों से इस मुहीम में सहयोग करने की अपील की। रमेश दलाल ने चौटाला गाँव में पंचायत कर ग्रामवासियो के सामने चौटाला परिवार की एकजुटता की मुहीम में भूमिका निभाने के लिए प्रस्ताव रखा, जिसके जवाब में पंचायत में उपस्थित ग्राम वासियों ने मुहीम की सराहना करते हुए प्रस्ताव को पास किया। ऐसे में अब चौटाला गाँव ने भी इस मुहीम को आगे बढ़ाने के लिए खाप पंचायतों को अधिकृत कर दिया है। रमेश दलाल का कहना है कि हमने सारे तथ्य चौटाला गाँव के समक्ष रख दिए है तथा चौटाला गाँव ने एकजुटता की मुहीम का पूर्णतः समर्थन किया है। गौरतलब है कि ओमप्रकाश चौटाला, सरदार प्रकाश सिंह बादल, डॉ. अजय चौटाला, अभय चौटाला, पहले ही खाप पंचायतो को इस मुहीम को आगे बढ़ने के लिए अधिकृत कर चुके है। उसी दिशा में अब चौटाला गाँव ने भी निर्णय पंचायत पर छोड़ा है। वही दुष्यंत चौटाला ने सोमवार को पत्रकार वार्ता में बयान दिया था कि डॉ. अजय चौटाला के पैरोल पर बाहर आने पर ही वह परिवार के राजनीतिक एकजुटता पर फैसला लेंगे। इसके जवाब में रमेश दलाल का कहना है कि चुनावों की घोषणा कभी भी हो सकती है तथा फैसला करने के लिए ज्यादा समय नहीं बचा है। ऐसी स्थिति में या तो एक-दो दिन में डॉ. अजय चौटाला पैरोल पर बहार आ कर अपना निर्णय स्पष्ट करें तथा अगर किसी कारण से उनके बाहर आने में कोई विलंब हो रहा हो तो दुष्यंत चौटाला उनसे बात करके, पंचायत को आगे बढ़ने के लिए अधिकृत करें। जब तक सभी पक्ष पंचायत को फैसले के लिए अधिकृत नहीं कर देते, तब तक पंचायत इस मुहीम को आगे नहीं बढ़ा सकती। रमेश दलाल का कहना है कि समय की मांग के अनुसार चौटाला परिवार को स्वर्गीय ताऊ देवी लाल के पदचिन्हों पर चलना चाहिए। ताऊ देवीलाल ने १९८७ में पहले तो हरियाणा में महागठबंधन बनाया और फिर बाद में देश के विपक्ष को संगठित कर कांग्रेस को सत्ता से बाहर किया। साथ ही रमेश दलाल ने ताऊ देवीलाल के त्याग का हवाला देते हुए कहा कि एक तरफ तो देवीलाल ने प्रधानमंत्री तक के पद का त्याग कर दिया था वही दूसरी तरफ राजनीतिक प्रतिस्पर्धा के कारण चौटाला परिवार में एकजुटता करने में विलंब हो रहा है। अगर चौटाला परिवार को स्वर्गीय ताऊ देवीलाल के पदचिन्हो पर चलना है तो परिवार को एकजुट कर पंचायत को फैसला करने के लिए अधिकृत करे।
हाथ्रस जबरदस्ती की तो ईंट-ईंट बजा देंगे हाथरस। आगरा-अलीगढ़ नेशनल हाइवे के लिए प्रस्तावित बाईपास के भूमि अधिग्रहण का विरोध लगातार बढ़ता ही जा रहा है। किसान रोजाना पंचायत कर गुस्सा जाहिर कर रहे हैं। अब शनिवार को भी किसानों ने गांव हतीसा के जूनियर हाईस्कूल में एक पंचायत की, जिसमें भूमि अधिग्रहण के विरोध में रणनीति तैयार की गई। पंचायत में किसानों ने निर्णय लिया कि वह जमीन तभी देंगे, जब जमीन की वाजिब कीमत से पांच गुना अधिक मुआवजा, किसान परिवार के एक सदस्य को नौकरी एवं ३५ वर्ष तक रॉयल्टी प्रदान की जाएगी। किसान नेताओं ने इसके साथ ही निर्णय लिया कि अधिग्रहण की जा रही जमीन के क्षेत्रफल का २५ प्रतिशत हिस्सा विकसित करके किसानों को देना होगा। अगर इन शर्तों पर प्रशासन तैयार नहीं होता है तो प्रशासन की ईंट से ईंट बजा दी जाएगी। जमीन पर किसी भी कीमत पर कार्य नहीं करने दिया जाएगा। इस आंदोलन को धारदार बनाने के लिए एक संघर्ष समिति का गठन किया गया। संघर्ष समिति में रामनिवास शर्मा, लोकेश शर्मा, संतोष शर्मा गढ़ी तमन्ना, चुन्नीलाल पाठक, अभिषेक शर्मा लहरा, जगवीर सिंह व महावीर सिंह कुंवरपुर, सत्यदेव शर्मा, सुरेद सिंह, पद्म उपाध्याय तथा विनोद कुमार हतीसा, मोहन सिंह व राजेद्र सिंह नहरोई, हरी सिंह व बच्चू सिंह नगला बाद, जयपाल सिंह कपूरा, राकेश राना काका, छत्रपाल सिंह, बच्चू सिंह दऊदयाल, रामजीलाल और प्रताप सिंह भगवंतपुर को शामिल किया गया। किसान पंचायत की अध्यक्षता चुन्नी लाल पाठक ने की एवं संचालन राकेश काका ने किया। मुख्य मौके पर लाल मुहम्मद, अनूप ठाकुर के अलावा सुरेश, अशोक गहलोत, यतेंद्र सिंह गहलोत, विनोद प्रधान, देवेंद्र सिंह, लाखन सिंह, भजनलाल, पूरन सिंह, शिवशंकर शर्मा लक्ष्मीनारायण, निरंजन लाल, अमित श्रोती, भूरी सिंह, मेवाराम, उदयवीर, महावीर, मोहनपाल आदि ने विचार व्यक्त किए। पंचायत में काफी किसान शामिल हुए।
५ मीन एगो दो महीने के अंदर एम्स के तीसरे डॉक्टर ने की खुदकुशी, कमरे में मिली सड़ी-गली लाश १३ मीन एगो आजादी के बाद ६०० गुना बढ़ीं सोने की कीमतें, १५ अगस्त १९४७ को सिर्फ इतना था १० ग्राम सोने का भाव १७ मीन एगो बर्फ से ढकी ४००० फीट की चोटी पर भारतीय जवानों ने ऐसे मनाया स्वतंत्रता दिवस, विडियो देख होगा गर्व नई दिल्ली। दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल को बड़ी कामयाबी हाथ लगी है। गुरुवार को एक ऑपरेशन में टीम ने दिल्ली के मोस्ट वांटेड कुख्यात बदमाश संदीप उर्फ ढिल्लू को गिरफ्तार करने में कामयाबी हासिल की है। पुलिस ने बताया कि संदीप दिल्ली के एलएनजेपी अस्पताल से सुरक्षाकर्मियों को चकमा देकर भाग निकला था। जानकारी देते हुए पुलिस ने बताया कि संदीप ढिल्लू पर २ लाख का इनाम घोषित था। संदीप के खिलाफ दिल्ली और हरियाणा में हत्या, एक्सटॉर्शन के कई मामले दर्ज है । बताते चलें कि संदीप ढिल्लू का नाम दिल्ली के टॉप और कुख्यात अपराधियों की गिनती में शामिल है। पिछले काफी समय से दिल्ली पुलिस को ढिल्लू की तलाश थी। जिसे गुरुवार को गिरफ्तार कर लिया है। उल्लेखनीय है कि पुलिस ने जब संदीप को पकड़ा तो उसकी पत्नी ने पकड़े जाने का वीडियो ही वायरल कर दिया। साथ ही पत्नी प्रियंका ने वीडियो में अपने पति के एनकाउंटर कर देने की आशंका भी जताई। वीडियो में संदीप की पत्नी कहती सुनाई दे रही है कि 'मैं प्रियंका वाइफ ऑफ संदीप, मैं अपने पति के साथ सिलीगुड़ी घुमने आई थी, मेरे पति को सेल वाले, लोधी कॉलोनी के इंस्पेक्टर उमेश भार्थवाल उठा ले गए हैं। कहीं मेरे पति का एनकाउंटर न हो जाए।' बहादुरगढ़ के जसौर खेड़ी गांव के निवासी संदीपे उर्फ ढिल्लू ने खुद का भी अपना गिरोह बना रखा है। हत्या के अलावा उस पर रंगदारी और आर्म्स एक्ट के मुकदमे दर्ज हैं। वर्ष १९७८ में एक किसान के घर में जन्म लेने वाले संदीप ने बाहरी दिल्ली की गैंगवार के माध्यम से अपराध जगत में कदम रखा। दसवीं तक पढ़ाई करने वाले संदीप के पिता उसे पहलवान बनाना चाहते थे लेकिन इसी दौरान स्थानीय गैंगस्टर के संपर्क में आने के साथ ही उसने अपराध की दुनिया का रुख कर लिया। वर्ष २००३ में सुल्तानपुरी में पुलिसकर्मियों पर हमला करने व क्राइम ब्रांच के इंस्पेक्टर को घायल करने का आरोप ढिल्लू पर लगा। वर्ष २००४ में जनकपुरी में वसूली के एक मामले में उद्योगपति की हत्या करने के मामले में भी वह आरोपी है। वर्ष २००६ में उसे पश्चिम विहार में एक बैंक डकैती के मामले में गिरफ्तार किया गया था। साथ ही २००४ में हुए मर्डर के मामले में दोषी ठहराया गया। वर्ष २००७ में पैरोल जंप करके फरार हो गया। वर्ष २०१० में उस पर उत्तर प्रदेश के बागपत में गैंगवार के चलते एक व्यक्ति की हत्या का आरोप लगा। वर्ष २०१२ में दिल्ली के भारत नगर में एक उद्योगपति के घर में घुसकर पैसा वसूली का मामला भी दर्ज हुआ। हालांकि वह २०१७ में गिरफ्तार हुआ। बदमाश १९ फरवरी २०१८ को पुलिसकर्मियों की आखों में मिर्च का पाउडर झोंक मौलाना आजाद दंत विज्ञान संस्थान में इलाज कराने आए संदीप को भगा ले गए थे।
उत्तराखंड के पहाड़ों में लोगों ने अपनी आवश्यकताओं के अनुसार कई प्रकार के स्वादिष्ट व्यंजनों का इजाद किया है। इनमें दाल, भात के साथ ही कपुलु, फाणु, झ्वली, चैंसु , रैलु, बाड़ी, पल्यो, चुना (कोदा) की रोटी, मुंगरी (मक्का) की रोटी, आलू की थिचोड़ी, आलू का झोल, जंगोरा का भात, जंगोरा, अरसा, बाल मिठाई, भांग की चटनी, भट्ट की चुलकाणि, डुबुक, गहत की गथ्वाणि, गहत की भरवा रोटी, गुलगुला, झंगोरे की खीर, स्वाला, तिल की चटनी और उड़द की पकोड़ी आदि प्रमुख हैं। सब्जियों में कंडाली की भी सब्जी बनाइ गई। जंगलों से लाकर तैडु, गिंठी भी खाई गई। कभी बसिंग का पालू और सेमल फूल का साग भी बनाया जाता रहा है। । प्रेवियस आर्टियलमिस्ड कॉल के नाम पर पहाड़ी महिलाओं पर तिरछी निगाहें हरीश लखेड़ा नेक्स्ट आर्टियलफाणु (दाल) : उत्तराखंड का स्वादिष्ट व्यंजन
अपहृत डीएम की रिहाई के प्रयास हुए तेज | जनतंत्र स्टे कनेक्टेड माओवादियों द्वारा अपनी मांगों को लेकर समयसीमा बढ़ाए जाने के साथ ही मल्कानगिरी के जिलाधीश आरवी कृष्ण और एक जूनियर इंजीनियर को बातचीत के जरिए रिहा कराने के प्रयास शनिवार को तेज हो गए। कृष्ण और जूनियर इंजीनियर पवित्र मोहन माझी का माओवादियों के कब्जे में चौथा दिन है। आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि दो मध्यस्थों के यहां शीघ्र ही पहुंचने की उम्मीद है जिनका नाम माओवादियों ने सुझाया है और जिनसे उड़ीसा सरकार ने संपर्क किया है। गृह सचिव यूएन बहेरा के अनुसार राज्य सरकार हैदराबाद निवासी दोनों वार्ताकारों प्रोफेसर सोमेश्वर राव और प्रोफेसर हरगोपाल के निरंतर संपर्क में है और प्रक्रिया गति पकड़ रही है। उड़ीसा सरकार और अन्य की अपील के बाद माओवादियों ने अपनी मांगों को पूरा करने के लिए दी गई ४८ घंटे की समयसीमा को बढ़ा दिया है। सूत्रों ने कहा कि अब सब कुछ बातचीत के तरीके पर निर्भर करेगा। राव और हरगोपाल ने जोर दिया है कि दोनों बंधकों की सुरक्षित रिहाई के लिए सार्थक वार्ता सुनिश्चित करने के लिए समयसीमा विस्तारित रहनी चाहिए। राज्य सरकार ने मध्यस्थ एवं सामाजिक कार्यकर्ता स्वामी अग्निवेश से संपर्क किया है। उन्होंने माओवादियों से आग्रह किया है कि वे बंधकों को किसी भी तरह का शारीरिक नुकसान नहीं पहुंचाएं। माओवादियों ने सात सूत्री मांगें रखी हैं। उनकी मांग पर नक्सल विरोधी अभियान पहले ही रोक दिया गया है। माओवादियों ने सीमा सुरक्षाबल (बीएसएफ) को हटाए जाने, जेलों में बंद ७०० आदिवासी नक्सलियों को रिहा करने और आंध्र प्रदेश की पोलवरम बहुउद्देश्यीय बांध परियोजना को रद्द करने की भी मांग की है। लास्ट ५ पोस्ट बाय डेस्कफिर से शुरु हो रहा है जनतंत्र - जुलाई २न्द, २011अब ब्लड कैंसर नहीं रहेगी लाइलाज बीमारी - फेब्रुवारी २0त, २011स्तन कैंसर के लिए जिम्मेदार जीन की खोज - फेब्रुवारी २0त, २011जी-२0:आर्थिक असंतुलन से निपटने पर सदस्य देशों के बीच उभरे मतभेद - फेब्रुवारी २0त, २011राहत को नहीं मिली 'राहत', फेमा और कस्टम एक्ट के तहत आरोप तय - फेब्रुवारी १९त, २011 शॉर्ट उर्ल:
मौत का सफर करने वालों पर एक बार फिर चला लेडी सिंघम का डंडा(विडियो) रेवाड़ी(मोहिंद्र भारती): तस्वीरों में हाथ में मोटा डंडा लेकर बसों के पीछे दौड़ती हुई दिखाई दे रही यह वही सब इंस्पेक्टर है। जिसने अब बिना परमिट व बिना लाइसेंस के शहर की सड़कों पर बेलगाम दौड़ती बसों व बसों की छतों पर सफर करने वाले यात्रियों पर पुलिसिया डंडा घुमाना शुरू कर दिया है। दरअसल, शहर में बिगड़ती ट्रैफिक व्यवस्था को लेकर एसपी के निर्देश पर रेवाड़ी पुलिस एक बार फिर सख्त होती दिखाई पड़ रही है। यातायात नियम तोड़ मौत का सफर करने वालों पर लेडी सिंघम का डंडा चल पड़ा है। वही सड़कों पर बिना परमिट सरपट दौड़ने वाली बसों को भी इस लेडी सिंघम ने इंपाउंड करना शुरू कर दिया है। इस सब इंस्पेक्टर की माने तो बढ़ते सड़क हादसों को देखते हुए उसने पहले एलाउंस किया, फिर बसों की छतों पर चढ़ने वाली सीढ़ियों पर ग्रीस लगाई। लेकिन जब लोग नही माने तो हाथ डंडा उठा लिया और चालान काटने शुरू कर दिए। वहीं एक बाइक पर सवार ४ युवकों को जाते देख इसका गुस्सा और भड़क गया। उन्होंने कहा कि फिलहाल एक प्राइवेट बस को इंपाउंड किया है तथा कुछ बसों के चालान काटे हैं। लेकिन अगर किसी बस के पास कागजात नही मिले तो फिर चाहे वह प्राइवेट हो या रोडवेज, किसी को भी बख्शा नही जाएगा। अब देखना यह होगा कि इस लेडी सिंघम की यह कार्यवाही ट्रैफिक व्यवस्था के सुधार की दिशा में कितनी कारगर साबित होती है और वाहन चालकों पर इसका कितना असर पड़ता है। यह तो आने वाला वक्त ही बताएगा। हरियाणा हिंदी न्यूज तरुण भंडारी ने की अहमद पटेल से मुलाकात दिल दहला देने वाला वीडियो, पढ़ाई के लिए जान जोखिम में डाल रहे बच्चे(विडियो) बाजरे की फसल का ब्यौरा आज मध्य रात्रि तक एप पर करना होगा अपलोड कनीना गैंगरेप के २ मुख्यारोपी ४ दिन के रिमांड पर रेवाड़ी गैंगरेप: सित टीम ने फरार चल रहे दोनों अारोपियों को दबोचा, पूछताछ जारी (विडियो) पत्नी बोली, 'पंकज को फांसी दो या गोली मार दो, मेरा उससे कोई रिश्ता... बिजली के दाम आधे करने के बाद अब सरचार्ज माफ करेगी खट्टर सरकार फर्जी बिल दिखाकर बिजली निगम से ठगे ९.३७ करोड़ अरुण जेटली जल्द ही पी.एम. के हाथों में केतली पकड़वाएंगे: कै. अजय कंपनी अधिकारियों से साढ़े ४ करोड़ की लूट, फिल्मी स्टाईल में गाड़ी को... एक सुर में बोली पंचायत, सभी दरिंदों को मिले फांसी की सजा वरना होगा... गांवों की बैठक में उठी मांग, गैंगरेप पीड़िता को मिले डी.एस.पी. पद
क्रिकेटर रोहित शर्मा की नई पारी, विलुप्त हो रहे इस जानवर के संरक्षण के लिए शुरू किया अभियान भारतीय क्रिकेट टीम के स्टार बल्लेबाज रोहित शर्मा ने कहा कि धरती के लिए जानवर भी उतने ही जरूरी हैं जितने हम मनुष्य इसलिए इनकी रक्षा के लिए हमें हमें कोशिश करनी चाहिए. नई दिल्लीः भारतीय क्रिकेट टीम (इंडियन क्रिकेट टीम) के स्टार बल्लेबाज रोहित शर्मा (रोहित शर्मा) ने एक ऐसे काम की जिम्मेदारी ली है जिसका उनकी प्रोफेशनल लाइफ से कोई भी लेना-देना नहीं है. रोहित शर्मा ने विलुप्त हो रहे जानवर गैंडों (राइनोसेरोस) के संरक्षण की जिम्मेदारी ली है. रोहित शर्मा डब्ल्यूडब्ल्यूएफ इंडिया और एनीमल प्लैनेट के साथ मिलकर एक सींग वाले गैंडों के संरक्षण के लिए कार्य करेंगे. विडियो: समंदर किनारे गब्बर का मुरली अंदाज देखकर प्रशंसक बोले- कितने रूप हैं आपके रोहित ने खुद को इसके लिए रोहित४राइनोज अभियान से जोड़ा है. बता दें कि गैंडों का यह संरक्षण अभियान २२ सितंबर को विश्व राइनो दिवस (वर्ल्ड राइनो दए) पर लॉन्च किया जाएगा. रोहित ने ट्वीट करके इसकी जानकारी दी. उन्होंने कहा कि पृथ्वी पर रहने वाले सभी मनुष्यों की यह सामूहिक जिम्मेदारी बनती है कि हम विलुप्त हो रहे जानवरों के संरक्षण में अपना योगदान दें. अपने ट्वीट में उन्होंने कहा कि हमारा भविष्य हमारे हाथ में है और हमें इस बात के लिए हमेंशा प्रयास करना चाहिए कि हमारे बच्चे भी विभिन्न प्रकार की जैव विविधिताओं को देख सकें और इसके लिए हमें वो सब करना चाहिए जो सक्षम हो. रोहित ने कहा कि मैं उम्मीद करता हूं कि इस प्रकार के अभियान से एक सींग वाले राइनो को बचाने में कुछ हद तक मदद मिलेगी. आपको बता दें कि रोहित डब्ल्यूडब्ल्यूएफ इंडिया (वॉफ इंडिया) में राइनो संरक्षण के लिए ब्रांड एंबेसडर है और इसके लिए वे २०१८ में शामिल हुए थे. टेनिस कोर्ट में पनपा प्यार बन रहा जीत की वजह, कपल ने कहा- हम एक दूसरे से हो रहे हैं प्रेरित रोहित ने एक वीडियो भी पोस्ट किया है जिसमें दिखाया गया है कि पूरी दुनिया में सिर्फ ३५०० गैंडे ही बचे हैं जिनमें से ८२% केवल भारत में निवास करते हैं. रोहित ने कहा कि मुझे आशा है कि मेरे साथ इस अभियान में और भी कई लोग जुड़ेंगे. लोगों ने रोहित के इस काम की खूब प्रशंसा की है. नाइट राइडर्स को लगा झटका, कल २०१९ से बाहर हुए ड्वेन ब्रावो, ये है वजह एश २०१९: बारिश के खलल के बीच ऑस्ट्रेलिया ने ३ विकेट पर बनाए १७० रन, लाबुश्साने, स्मिथ ने जड़ा अर्धशतक
सीधी क्रॉनिकल: विकास दुबे की गिरफ्तारी पर सवाल: अजय सिंह नें कहा- प्री प्लानिंग के तहत की गयी गिरफ्तारी। विकास दुबे की गिरफ्तारी पर सवाल: अजय सिंह नें कहा- प्री प्लानिंग के तहत की गयी गिरफ्तारी। भोपाल: उत्तर प्रदेश के कानपुर में पिछले दिनों आठ पुलिसकर्मियों को घेरकर बेरहमी से हत्या करने के आरोपी कुख्यात गैंगस्टर विकास दुबे आखिरकार आज मध्यप्रदेश के उज्जैन में गिरफ्तार कर लिया गया है। विकास दुबे उज्जैन के महाकाल में दर्शन के लिए गया था, तभी वहां के गार्ड ने पहचाना। जिसके बाद वहां की पुलिस एक्शन में आई और उसे वहीं पकड़ लिया। लेकिन अब विकास दुबे की उज्जैन से गिरफ्तारी पर सवाल खड़े हो गए हैं। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता अजय सिंह नें विकास दुबे की गिरफ्तारी को प्री- प्लानिंग के तहत की गयी गिरफ्तारी बताया है। मध्यप्रदेश विधानसभा के पूर्व नेता प्रतिपक्ष अजय सिंह नें कुख्यात गैंगस्टर विकास दुबे की गिरफ्तारी को लेकर शिवराज सरकार को कटघरे में खड़ा किया एवं ट्वीट करते हुये लिखा-"ऐसे टहल रहा विकास दुबे मंदिर परिसर में। प्री प्लानिंग गिरफ्तारी हुई है। उसमें भी वाह वाही लूटी जा रही है। शर्म करो शिवराज"। ऐसे टहल रहा विकास दुबे मंदिर परिसर में। प्री प्लानिंग गिरफ्तारी हुई है। उसमें भी वाह वाही लूटी जा रही है।
यूनिटेक लिमिटेड के दो प्रवर्तक को पुलिस हिरासत में भेजा गया - उपड़ते टाइम्स हिट गाने दिलबर दिलबर से चर्चा में रही नोरा फतेही अब फिल्म बाटला हाउस में आएंगी नज़र - ७ ह्र एगो चेकिंग के दौरान कार से पांच लाख ८८ हजार रुपये की नकदी बरामद - ८ ह्र एगो सदियों से चली आ रही एकादशी पर्व पर पांडव नृत्य की एक अनूठी परंपरा - ८ ह्र एगो चुनाव चिह्न बदले जाने से मतदान करीब डेढ़ घंटे रहा प्रभावित, भड़के समर्थक देख पुलिस ने खदेड़ा - ८ ह्र एगो डामटा के निकट खाई में गिरी बस, पांच लोगों की मौत;नौ घायल - ९ ह्र एगो नगर निकायों के चुनाव के लिए मतदान शुरू, मतदान केंद्रों में दिखी मतदातों की लंबी कतारें - ९ ह्र एगो नयी दिल्ली। जमीन जायदाद के विकास से जुड़ी कंपनी यूनिटेक लिमिटेड के दो प्रवर्तक संजय चंद्रा और अजय चंद्रा को दिल्ली की एक अदातल ने सात दिन की पुलिस हिरासत में भेजा है। दोनों के खिलाफ ग्रेटर नोएडा में प्रोजेक्ट की आड़ में धोखाधड़ी करने का आरोप लगाते हुए तीन प्राथमिकी दर्ज कराई गई हैं। जांच एजेंसी ने धोखाधड़ी के मामले में पूछताछ के लिए अदालत के समक्ष दोनों के हिरासत की मांग की थी। मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट मयूरी सिंह ने अनुरोध स्वीकार करते हुए चंद्रा बंधुओं को १५ सितंबर तक पुलिस हिरासत में भेजा है। तीन में से एक प्राथमिकी में, यह आरोप लगाया गया है कि फर्म ने २००६ में उत्तर प्रदेश के ग्रेटर नोएडा में एक आवासीय परियोजना यूनिटेक वर्व शुरू की थी, जिसमें शिकायतकर्ता राम नारायण अग्रवाल ने १६.७७ लाख रुपये की कीमत से फ्लैट बुक कराया था। शिकायतकर्ता का आरोप है कि दिसंबर २००९ में फ्लैट देने के लिए कहा गया था लेकिन उन्हें अभी तक कब्जा नहीं मिला है। दो अन्य प्राथमिकियों में भी प्रवर्तकों पर धोखाधड़ी और घर खरीदारों को फ्लैट नहीं देने का आरोप है। एक अन्य मामले में चंद्रा पर ८५ वर्षीय महिला से धोखाधड़ी करके ४१ लाख रुपये लेने का आरोप है। इस मामले में अतिरिक्त मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट संदीप गर्ग ने दोनों को चार दिन की पुलिस हिरासत और २२ सितंबर तक की न्यायिक हिरासत में भेजा था। न्यायिक हिरासत में भेजे जाने के आदेश के बाद चंद्र बंधुओं ने अपने अधिवक्ता के जरिए जमानत याचिका दाखिल की। इस पर ११ सितंबर को सुनवाई होनी है। ८५ वर्षीय महिला की ओर धोखाधड़ी की शिकायत पर ४ सितंबर को अदालत ने अजय और संजय चंद्रा को पुलिस हिरासत में भेजा था। महिला ने दोनों पर साल २०१६ में प्राथमिकी दर्ज कराई थी। प्राथमिकी में शिकायतकर्ता की ओर से दावा किया गया था कि साल २००६ में उसने यूनिटेक लिमिटेड के ग्रेटर नोएडा परियोजना यूनिटेक कास्कैड में ४३ लाख रुपये में फ्लैट बुक कराया था। साल २००८ तक ४१ लाख रुपये का भुगतान कर दिया गया था लेकिन उन्हें अभी तक फ्लैट का कब्जा नहीं दिया गया है। उत्तराखंड मेट्रो प्रोजेक्ट पर सरकार को लगा झटका
राकांपा (राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी) के प्रमुख शरद पवार (शरद पॉवर) ने सोमवार को कहा कि कोरोना वायरस (कोविड १९)के कारण सभी प्रकार की व्यावसायिक गतिविधिया बंद हैं और इससे देश की अर्थव्यवस्था पर पड़ने वाले प्रभाव के लिए सभी को तैयार रहना चाहिए। राज्य की जनता के साथ फेसबुक पर सीधे संवाद में राकांपा प्रमुख ने लोगों से गैरजरूरी खर्चों को तत्काल रोकने को कहा और संक्रमण को फैलने से रोकने के लिए घरों में रहने की अपील की। उन्होंने कहा, सभी प्रकार की व्यावसायिक गतिविधिया बंद हैं और इससे देश की अर्थव्यवस्था पर पड़ने वाले असर के लिए हम सब को तैयार रहना चाहिए। मनरेगा योजना के तहत कम योगी ने २७.५ लाख मजदूरों के खाते में डाले ६११ करोड़ रुपये देश की अर्थव्यवस्था कमजोर दिखाई दे रही है और ऐसे में लोगों को बेवजह खर्च करने की आदत पर कुछ हफ्तों के लिए लगाम लगानी चाहिए। उन्होंने कहा, मैं कोरोना वायरस संक्रमण को फैलने से रोकने के लिए लोगों से घरों में रहने और अपील करता हूं, नहीं तो पुलिस को उन्हें घरों के अंदर रखने के लिए बल का प्रयोग करना पड़ेगा।
जयपाल रेड्डी ने कहा कि डीजल,गैस,किरासन तेल के दाम बढ़ने की सम्भावना नहीं नई दिल्ली। पेट्रोलियम मंत्री एस. जयपाल रेड्डी ने सोमवार को कहा कि सरकार की तत्काल डीजल, रसोई गैस (एलपीजी) और मिट्टी का तेल की कीमत बढ़ाने की योजना नहीं है। इन वस्तुओं की कीमत बढ़ने की सम्भावना पर पूछे जाने पर उन्होंने कहा, "मैं डीजल, एलपीजी और मिट्टी के तेल की कीमत को छूने नहीं जा रहा हूं।" सार्वजनिक क्षेत्र की तेल कम्पनियों ने पिछले सप्ताह पेट्रोल की कीमत में अब तक की सर्वाधिक वृद्धि की है। कयास लगाए जा रहे थे कि सरकार रियायत का बोझ घटाने के लिए अब डीजल और रसोई गैस के भी दाम बढ़ा सकती है। सरकार अभी प्रति लीटर मिट्टी के तेल पर ३१ रुपये, प्रति लीटर डीजल पर १३.६४ रुपये और रसोई गैस के हर सिलेंडर पर ४७९ रुपये की रियायत दे रही है। तेल विपणन कम्पनियों का कहना है कि डीजल, मिट्टी के तेल और रसोई गैस की बिक्री पर उन्हें हर रोज ५०० करोड़ रुपये का नुकसान हो रहा है।
आईएनएक्स मीडिया मामले में आरोपी पूर्व केंद्रीय मंत्री पी. चिंदबरम पर गिरफ्तारी की तलवार लटक रही है। दिल्ली उच्च न्यायालय ने मंगलवार को उन्हें अग्रिम जमानत देने से इनकार कर दिया। इसके तुरंत बाद सीबीआई और प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की टीम उनके घर पहुंच गई। हालांकि उस वक्त चिदंबरम अपने घर पर मौजूद नहीं थे और एजेंसियों को लौटना पड़ा। चिदंबरम गिरफ्तारी से राहत के लिए सुप्रीम कोर्ट भी पहुंचे लेकिन इसी बीच सीबीआई और ईडी की टीमें उनके घर पहुंच गईं। सबसे पहले सीबीआई के छह अफसरों की टीम उनके जोरबाग स्थित आवास पहुंची। सूत्रों के मुताबिक अफसरों ने घर की तलाशी ली लेकिन पूर्व वित्त मंत्री वहां नहीं मिले। सीबीआई अफसरों ने वहां मौजूद लोगों से जानकारी ली और लौट गए। सीबीआई अफसरों के जाते ही दो गाड़ियों में सवार प्रवर्तन निदेशालय के अधिकारी भी पहुंच गए। हालांकि उन्हें भी चिदंबरम नहीं मिले और अफसरों को लौटना पड़ा। इससे पहले दिल्ली उच्च न्यायालय ने उनकी अग्रिम जमानत अर्जी खारिज कर दी थी। जस्टिस सुनील गौड़ ने कहा कि यह धनशोधन का अनूठा मामला है और इस तरह के मामले में जमानत देने से समाज में गलत संदेश जाएगा। ३:२० बजे दिल्ली उच्च न्यायालय ने जमानत अर्जी रद्द की ६:५० बजे शाम सीबीआई टीम चिदंबरम के घर पहुंच गई ७:१० बजे सीबीआई अधिकारी उनके घर से रवाना हुए ७:३० बजे शाम प्रवर्तन निदेशालय के अफसर उनके घर पहुंचे ९:१५ बजे रात ईडी के अफसर चिदंबरम के घर से लौटे कांग्रेस नेता पी चिदंबरम से मंगलवार को कहा गया कि वह दिल्ली उच्च न्यायालय के आदेश के खिलाफ तत्काल सुनवाई के लिए अपनी अपील का उल्लेख बुधवार को उच्चतम न्यायालय में करें। उच्च न्यायालय ने आईएनएक्स मीडिया घोटाले से संबंधित भ्रष्टाचार और धनशोधन मामलों में उनकी अग्रिम जमानत याचिका खारिज कर दी थी। वरिष्ठ अधिवक्ता कपिल सिब्बल ने कहा कि प्रधान न्यायाधीश रंजन गोगोई अयोध्या मामले की सुनवाई के लिए संविधान पीठ में बैठे होंगे, इसलिए सुबह १०:३० बजे याचिका का उल्लेख उस वरिष्ठतम न्यायाधीश के समक्ष किया जाएगा जो संविधान पीठ में नहीं हैं। उच्च न्यायालय द्वारा अग्रिम जमानत याचिका खारिज कर दिए जाने के बाद चिदंबरम और उनके वकीलों के समूह ने मशविरा किया। उच्च न्यायालय के आदेश के बाद कपिल सिब्बल, अभिषेक मनु सिंघवी और सलमान खुर्शीद जैसे वरिष्ठ अधिवक्ता शीर्ष अदालत पहुंचे। उच्च न्यायालय में इस मामले पर बहस कर रहे वरिष्ठ वकील डी कृष्णन भी बाद में चर्चा में शामिल हुए। सिब्बल ने कहा कि टीम को अभी अदालत के आदेश की प्रति नहीं मिली है। उच्चतम न्यायालय के एक अधिकारी ने सिब्बल को चिदंबरम की याचिका रजिस्ट्रार (न्यायिक) के समक्ष रखने को कहा जो इसे प्रधान न्यायाधीश के समक्ष रखने के बारे में फैसला करेंगे। सिब्बल ने रजिस्ट्रार (न्यायिक) सूर्य प्रताप सिंह से मुलाकात की और उन्हें स्थिति बताई। उच्चतम न्यायालय का दरवाजा खटखटाने के लिए चिदंबरम को गिरफ्तारी से अंतरिम राहत देने से उच्च न्यायालय के इंकार के कुछ मिनट बाद यह घटनाक्रम हुआ। सीबीआई का आरोप है कि यूपीए-१ के दौरान चिदंबरम ने ३०५ करोड़ रुपये की विदेशी धनराशि प्राप्त करने के लिए मीडिया समूह को दी एक एफआईपीबी को मंजूरी दी। इसमें अनियमितताएं हुईं। चिदंबरम का जेपीसी रिपोर्ट पर टिप्पणी से इनकार पटरी पर लौट सकती है वैश्विक अर्थव्यवस्था: चिदंबरम
सैमसंग गलक्सी स९ और स९+ हुआ इंडिया में लांच: जाने कीमत और उपलब्धता मैक २०१८ में पेश करने के बाद, सैमसंग ने आज आधिकारिक रूप से सैमसंग गैलेक्सी स९ और स९+ को इंडिया में लांच कर दिया है। (रेड इन इंग्लिश) वास्तव में सैमसंग की यह दोनों ही स्मार्टफोन पूरे मैक २०१८ इवेंट में आकर्षण का केंद्र बने रहे जहाँ आखिर में इस वार्षिक इवेंट में उनको बेस्ट न्यू कनेक्टेड डिवाइस के ग्लोमो अवार्ड से भी नवाजा गया। सैमसंग के इस पावरफुल स्मार्टफोन स९+ को सर्वाधिक ९९ द्क्सोमार्क स्कोर मिला है जो गूगल पिक्सेल २ के ९7 स्कोर के रिकॉर्ड को तोड़ कर लिस्ट में टॉप पर आ जाता है। वही पर पिछल्ले साल इफोन क्स को भी ९7 स्कोर मिला था। द्क्सोमार्क की ही तरह, दिसप्लैमाते ने भी गैलेक्सी स९ को बेस्ट डिस्प्ले स्मार्टफोन का टैग दिया है। इंडिया में, सैमसंग ने गैलेक्सी स९ और स९+ की प्री-बुकिंग भी शुरू कर दी थी जहाँ पर टोकन मनी २,००० ते की गयी थी। अपने हर नए फ्लैगशिप फ़ोन के साथ सैमसंग अपनी गैलेक्सी स-सीरीज के फ़ोनों में सुधर करता ही रहता है। गैलेक्सी स९ और स९+ द्वारा सैमसंग यहाँ पर बेहतर कैमरा, तेज़ स्नैपड्रैगन/ एक्सीनोस प्रोसेसर, स्टीरियो स्पीकर्स, आर एमोजी स्टीकर, इंटेलीजेंट स्कैन, तेज़ वायरलेस चार्जिंग और भी काफी कुछ सुविधाएँ दे रहा है। सैमसंग ने इस साल डिस्प्ले साइज़ में कोई बदलाव नहीं किया है। गैलेक्सी स९ और स९+ क्रमशः ५.८-इंच और ६.२-इंच के क़द+ सुपर अमोलेड इनफिनिटी डिस्प्ले युक्त है, जहाँ पर स्क्रीन रेश्यो 1८.५:९ दिया गया है जिस कारण यह लगभग बेज़ेल-लेस्स डिस्प्ले कहा जा सकता है। सैमसंग ने यहाँ पर डिस्प्ले पर गोरिल्ला ग्लास प्रोटेक्शन भी दी गयी है। सैमसंग के अनुसार गैलेक्सी स९ और स९+ ७००नित्स तक की ब्राइटनेस प्राप्त कर सकता है जो पिछले गैलेक्सी स८ और स८+ से १००नित्स ज्यादा है। दोनों ही डिवाइस हदर१० कांटेक्ट प्लेबैक को भी सपोर्ट करती है। लगता है सैमसंग ने इस बार फीडबैक को सुना है और इसी कारण स्टीरियो स्पीकर्स को शामिल किया है जिस से ऑडियो अनुभव और भी बेहतर हुआ है। इस बार अक्ग ने स्टीरियो स्पीकर्स और ईयरफोन दोनों को ही संतुलित किया है। वही दोनों ही डिवाइस में आपको ३६०-डिग्री साउंड इफ़ेक्ट वाला डॉल्बी अट्मोस दिया गया है। यह भी पढ़े: केनोन इओस १५००ड और इओस ३०००ड डसल्र कैमरा भारत में हुए लांच भारतीय बाज़ार के लिए, सैमसंग ने एक बार फिर नवीनतम एक्सीनोस ९८१० मोबाइल प्रोसेसर पर विश्वास जताया है जिसके ४ एक्सीनोस म३ क्पू कोर २.८घ्ज़ पर तथा बाकि ४ कॉर्टेक्स-आ५५ क्पू कोर १.७घ्ज़ पर चलते है। चिपसेट के साथ-साथ ग्राफिकल परफॉरमेंस बेहतर करने के लिए माली-ग७२ म्प१८ गपू भी दिया गया है। दोनों ही गैलेक्सी स९ और स९+ में आपको लैडर४क्स रैम दी गयी है। जहाँ स९ आपको ४गब रैम दी गयी है वही पर स९+ में आपको ६गब रैम दी गयी है। दोनों ही डिवाइस ६४गब और २5६गब की उस २.१ इंटरनल स्टोरेज के साथ आते है। दोनों ही फोन में हाइब्रिड सिम स्लॉट दिया गया है जो ४00गब तक के मेमोरी कार्ड को सपोर्ट कर सकता है। सैमसंग के दोनों ही फोन आपको एंड्राइड ८.० ओरेओ आधारित सैमसंग एक्सपीरियंस ९.० पर रन करता हुआ मिलेगा। सैमसंग यहाँ गूगल के ट्रेबल प्रोजेक्ट को सपोर्ट करता है जिसका मतलब है इन दोनों ही फ़ोनों को समय से अपडेट मिल जायेंगे। यहाँ अन्य फीचर के रूप में आपको अनिमोजी के सैमसंग वर्जन आर एमोजी, बिक्स्बी विज़न, क्नॉक्स सिक्यूरिटी, इंटेलीजेंट स्कैन और कुछ अन्य सुविधाए भी दी गयी है। सैमसंग गैलेक्सी स९ और स९+ की सबसे बड़ी खासियत इसका कैमरा ही है। गैलेक्सी स९ में आपको रियर साइड सिंगल कैमरा दिया गया है लेकिन स९+ में आपको ड्यूल कैमरा सेटअप मिलेगा। स९ और स९+ के रियर कैमरा ड्यूल अपर्चर के साथ आता है- फ/१.५ लो-लाइट शॉट्स के लिए और नार्मल शॉट्स के लिए फ/२.४ । अपर्चर में फोटो के मुताबिक बदलाव होना कोई सामान्य फीचर नहीं है यह लो-लाइट फोटोग्राफी के लिए कैमरे को काफी बेहतर बनाता है। गैलेक्सी स९+ में आपको १२म्प+१२म्प का ड्यूल ऑप्टिकल इमेज स्टेबिलाइजेशन युक्त ड्यूल कैमरा दिया जाता है। ड्यूल कैमरा में दिया गया सेकेंडरी १२म्प सेंसर में आपको एक टेलीफ़ोटो लेंस फ/२.४ अपर्चर के साथ मिलता है। सैमसंग ने इसका उपयोग मुख्य रूप से पोर्ट्रेट मोड या सैमसंग के अनुसार लाइव फोकस इफ़ेक्ट के लिए किया है। दोनों ही फ़ोन आपको ८म्प के फ/१.७ अपर्चर वाले सेल्फी कैमरा मिलता है. सैमसंग गैलेक्सी स९ की इंडिया में कीमत ५७,९00 रुपए से शुरू होती है और स९+ के २५६गब वर्जन के लिए ७२,९00 रुपए तक जाती है। यह फ़ोन इंडिया में १६ मार्च को बिक्री के लिए उपलब्ध होगा लेकिन आप इसको फ्लिपकार्ट, सैमसंग स्टोर और ऑफलाइन स्टोर्स से प्री-बुक कर सकते है। सैमसंग ने यहाँ पर कुछ लांच ऑफर भी भी पेश किये है: वोडाफोन नेटवर्क के साथ गैलेक्सी स९ और स९+ पर नेटफ़्लिक्स एक वर्ष नि: शुल्क सदस्यता गैलेक्सी स९ और स९+ के साथ रिलायंस जियो का ४,९९९ का विशेष वार्षिक प्लान एयरटेल ऑफ़र: गैलेक्सी एस ९ की कीमत सिर्फ रू ९,९९0. पिछला लेखदिसप्ल्य नोच और २४म्प सेल्फी कैमरा के साथ आ सकता है विवो व९ अगला लेखगूगल द्वारा अंड्रॉयड प का डेवलपर प्रीव्यू होगा इस महीने में पेश
>चण्डीगढ़ का वास्तुविद् ले कोर्बुजिया किस देश का नागरिक था ? >गोरखालैंड परिषद कोलकाता के किस जिले हेतु प्रशासन के लिए स्थापित की गई है ? >भारतीय संविधान के किस भाग को उसकी आत्मा की संज्ञा दी गई है ? >मुगलकाल में न्यायालयों में किस भाषा का प्रयोग किया जाता था ? >प्रसिध्द खजुराहो मंदिर का निर्माण किसने किया था ? >राज्यसभा के सदस्यों का चुनाव कितनी अवधि के लिए किया जाता है ? >भारतीय संविधान ने किस देश के संविधान से राज्य के नीर्ति.निर्देशन सिध्दांत ग्रहण किए हैं ? >अकबरनामा मूलतः किस भाषा में लिखा गया ग्रन्थ है ? >भारत के किस कलाकार को मॉस्को च्वाॅइस प्राइज से सम्मानित किया गया है ? >हड्डियों के जोड़ पर यूरिक ऐसिड क्रिस्टलों का एकत्र हो जाना किस रोग का कारण बनता है ? >भारतीय अर्थव्यवस्था को सबसे अच्छे ढंग से किन शब्दों में व्यक्त किया जा सकता है ? >निर्विरोध चुने जाने वाले एकमात्र राष्ट्रपति कौन थे ? >किस ग्रह के प्राकृतिक उपग्रहों की संख्या सर्वाधिक (६३) है ? >उत्तर प्रदेश में नॉलेज पार्क की स्थापना कहाँ की जा रही है ? >खाद्यान्नों/खाद्य पदार्थों को सुरक्षित रखने के लिए कौनसा रसायन प्रयुक्त किया जाता है ? >बिरजू महाराज ने किस नृत्य शैली में ख्याति प्राप्त की थी ? >सूर्य.कलंक की खोज करने वाला सबसे पहला वैज्ञानिक कौन था ? >मोंगिया पत्तन किस राष्ट्र में स्थित है ? >पानीपत का द्वितीय युध्द कब हुआ था ? >कम्प्यूटर का कुँजी पटल क्या कहलाता है ? >प्रसिध्द रशियन क्लासिक पुस्तक दि मदर का लेखक कौन है ? >कौनसी लोकसभा के कार्यकाल को संविधान में उल्लिखित साधारण पांच वर्ष के कार्यकाल से अधिक बढ़ा दिया गया था ? >हड़प्पा सभ्यता में विशाल स्नानागार का साक्ष्य कहाँ से प्राप्त हुआ है ? >किस अधिनियम को काला कानून की संज्ञा दी गई थी ? >जिस मार्ग पर ग्रह सूर्य की परिक्रमा करते है, उसे क्या कहते हैं ? >विश्व विरासत दिवस किस तिथि को मनाया जाता है ? >पुस्तक द रोड अहेड का लेखक कौन है ? >यदि सूरत में बनी वस्तुएं मुंबई या दिल्ली में बेची जाएं, तो यह कौन सा व्यापार हुआ ? >किस मुगल शासक ने तंबाकू के प्रयोग पर प्रतिबंध लगा दिया था ? >किसके शासनकाल को वास्तुकला की दृष्टि से स्वर्ण.काल कहा जाता है ? >अन्नपूर्णा योजना किस वर्ष कार्यन्वित की गई थी ? >किस देश की तट.रेखा सबसे लम्बी है ? >किस क्षेत्र में उत्कृष्टता के लिए शांति स्वरूप भटनागर पुरस्कार दिया जाता है ? >वह एकमात्र पक्षी कौन-सा है, जो पीछे की और उड़ता है ? >सुरक्षा परिषद में स्थायी सदस्यों की संख्या कितनी है ? >किस दिन महात्मा गांधी ने दांडी यात्रा शुरू की थी ? >पेंट उद्योग के श्रमिकों को किस प्रकार प्रदूषण के जोखिम का सामना करना पड़ता है ? >भारत के किस राज्य को स्पाइस गार्डन के नाम से जाना जाता है ? >उत्तर प्रदेश का प्रसिध्द दुधवा नेशनल पार्क किस जिले में स्थित है ? >भारत के राष्ट्रपति के चुनाव के लिए नागरिक को कितनी आयु पूरी कर लेनी चाहिए ? >हल्दीघाटी की लड़ाई में अकबर ने किसको हराया था ? >मध्य प्रदेश की राजधानी निम्नलिखित में से कौन-सी है ? >किसी ऑब्जेट/टेक्स्ट को मूव करते समय माउस बटन को नीचे होल्ड करने को क्या कहा जाता है ? >स्वेज नहर किस सागरों को जोड़ती है ? >भारत के संविधान की किस अनुसूची में वे तीन सूचियां हैं, जो संघ और राज्यों के बीच शक्तियों का विभाजन करती हैं ? >मनुष्य की लाल रुधिर कोशिकाओं (आर.बी.सी.) का जीवन काल कितना होता है ? >अद्वैत वाद मत का प्रवर्तन किसने किया था ? >उत्तर प्रदेश का सर्वाधिक प्राचीन संग्रहालय कहाँ स्थित है ? >किस वर्ष में बैंकों का राष्ट्रीयकरण किया गया था ? >भारतीय संविधान की तीसरी अनुसूची का सम्बन्ध किससे है ? >भूमध्य रेखा पर सूर्य वर्ष में कितनी बार सीधा चमकता है ? >विश्व में कोयले का सबसे बड़ा उत्पादक देश कौनसा है ? >डबल फॉल्ट शब्द किस खेल से सम्बन्धित है ? >ब्रिटिश संसद का सदस्य बनने वाला पहला भारतीय कौन था ? >गंगा को उत्तर से दक्षिण ले जाने वाला चोला राजा कौन था ? >सूर्य का चक्कर लगाते हुए पृथ्वी की प्रति मिनट गति क्या होती है ? >दलबदल से सम्बन्धित प्रावधान किस अनुसूची में रखे गए हैं ? >मुहर्रम के अवसर पर प्रयोग में लिया जाने वाला प्रसिध्द वाद्ययंत्र कौनसा है ? >अमेरिका की डेट्रॉएट इलेक्ट्रिल्स कम्पनी द्वारा निर्मित सबसे तेज चलने वाली इलेक्ट्रिकल कार का नाम क्या है ? >पृथ्वी के तल से तुल्यकाली उपग्रह की ऊँचाई लगभग कितनी है ? >सन्त कबीर ने उत्तर प्रदेश के किस स्थान पर शरीर त्याग किया था ? >चीनी यात्री फाह्यान किस शासक के समय में आया था ? >क्ले कोर्ट तथा हार्ड कोट किस खेल से सम्बन्धित हैं ? >जूलियस सीजर की हत्या कब हुई थी ? >कौन-सा ग्रह सूर्य की एक परिक्रमा पूरी करने में सबसे कम समय लेता है ? >किस पंचवर्षीय योजना का मुख्य उद्देश्य आर्थिक आत्मनिर्भरता था ? >बेरी.बेरी किस विटामिन की कमी से होता है ? >अन्धकारमय महाद्वीप किसे कहा जाता है ? >भारत का दक्षिणतम स्थान इन्दिरा प्वाॅइण्ट कहाँ स्थित है ? >डार्विन फिचिंज का प्रयोग किस समूह के लिए किया जाता है ? >भारत का सबसे पुराना हॉकी टूर्नामेन्ट कौन-सा है ? >कोयले की खानों में विस्फोट करने वाली गैस प्रायः कौन सी होती है ? >शून्य काल किसका विवेकाधिकार होता है ? >भगत सिंह, सुखदेव एवं राजगुरू को फाँसी पर कब चढ़ाया गया ? >विश्व का सबसे बड़ा डेल्टा कौन-सा है ? >यूनेस्को ने निम्नलिखित में से किस दिन को अंतर्राष्ट्रीय साक्षरता दिवस घोषित किया था ? >योजना आयोग को किस वर्ष में स्थापित किया गया ? >भारत के प्रथम चुनाव आयुक्त कौन थे ? >डाइनामाइट बनाने में किस द्रव का प्रयोग किया जाता है ? >मानव ने ड्डषि कार्य किस युग से आरम्भ किया ? >रिंहद बांध परियोजना से किन राज्यों की सिंचाई होती है ? >गीतगोविन्द के लेखक कौन थे ? >किस वायसरॉय के काल में वर्नाकुलर प्रेस एक्ट निरस्त किया गया ? >बाल प्वाइंट पेन का अविष्कार किसने किया ? >भारत में खुदरा ऋण का सर्वाधिक प्रतिशत किसका है ? >इन्दिरा गाँधी राष्ट्रीय सुपर ताप विद्युत परियोजना के तहत् प्रतिवर्ष कितने अरब विद्युत उत्पादन का लक्ष्य रखा गया है ? >नीलगिरि पहाडि़यों में पेड़ की कौन सी सामान्य जाति है ? >पादप, हिरण, भेडि़या व शेर से निर्मित खाद्य-श्रंखला में से ऊर्जा किसमें होगी ? >वसुंधरा शिखर सम्मेलन कहां हुआ था ? >विश्व का सबसे गहरा गत्र्त मेरियाना ट्रेंच किस महासागर में स्थित है ? >दोहावली, कवितावली, विनयपत्रिका जैसी भक्ति रचनाएँ किस भक्ति सन्त की हंै ? >विश्व में सबसे विशाल मरुभूमि कौनसी है ? >इंकलाब जिंदाबाद का नारा किसने दिया था ? >माउस के दो मानक बटनों के बीच स्थित व्हील का क्या प्रयोग होता है ? >किस देश ने विश्व की सबसे लम्बी हाई स्पीड रेल लाइन को ट्रेनों के आवागमन के लिए खोला है ? >केन्द्रीय मन्त्रिपरिषद् के विरुध्द अविश्वास प्रस्ताव कहाँ प्रस्तुत किया जा सकता है ? >बिहार में १८५७ ई. के विद्रोह को किसने नेतृत्व प्रदान किया था ? >संसद को मौलिक अधिकारों को खत्म करने या कम करने का कोई अधिकार नहीं है. यह सर्वोच्च न्यायालय के किस निर्णय में कहा गया है ? >सीपीयू का सबसे महत्त्वपूर्ण भाग कौन सा होता है ? >पुस्तक ग्रेट सोल.महात्मा गाँधी एण्ड हिज स्ट्रगल विद् इण्डिया किसने लिखी है ? >रामड्डष्ण मिशन की स्थापना किसने की ? >लहसुन की विशिष्ट गंध निम्नलिखित में से किस एक के कारण है ? >शान्त घाटी किस राज्य में स्थित है ? >जिन्ना एवं तिलक कॉमरेड इन फ्रीडम स्ट्रगल पुस्तक के रचियता कौन हैं ? >पृथ्वी को १ अक्षांश घूमने में कितना समय लगता है ? >संघ शासित क्षेत्रों/केन्द्रशासित प्रदेशों के लिए प्रशासकों की नियुक्त कौन करता है ? >उत्तर प्रदेश में जैन एवं बौध्द दोनों धर्मों का प्रसिध्द तीर्थ कौन सा है ? >डी.आर.डी.ओ. द्वारा विकसित अग्नि.५ मिसाइल की मारक क्षमता कितने कि.मी. तक है ? >कनिष्क किस वर्ष में राज्य सिंहासन पर आरूढ़ हुए ? >किसको सह्याद्रि पर्वतमाला भी कहा जाता है ? >नाथुला एक स्थान है, जहाँ ४४ वर्षों के बाद भारत.चीन सीमा व्यापार फिर शुरू किया गया था। वह किस राज्य की भारतीय सीमा पर स्थित है ? >वर्तमान में सम्पत्ति का अधिकार किस प्रकार का अधिकार है ? >उपभोक्ता दिवस कब मनाया जाता है ? >भारत आए कैबिनेट मिशन की अध्यक्षता किसने की थी ? >अपवर्तन तथा प्रकाश के पूर्ण आन्तरिक परावर्तन से किसका निर्माण होता है ? >भारतीय उपमहाद्वीप की पहली सभ्यता का विकास कहाँ हुआ ? >प्रसिध्द नारा गरीबी हटाओ किस पंचवर्षीय योजना के दौरान दिया गया था ? >संस्ड्डत व्याकरण किसने लिखा था ? >सन्त कबीर के गुरु का नाम क्या था ? >केईबुल लैम्जवो, विश्व का एकमात्र तैरता राष्ट्रीय उद्यान कहां स्थित है ? >मुख्यमंत्री की नियुक्ति कौन करता है ? >समसूत्री विभाजन के फलस्वरूप कितनी सन्तति कोशिकाओं का निर्माण होता है ? >भारतीय इतिहास में राजा बनाने वाले के नाम से प्रसि; सैदय बन्धु कौन थे ? >सूचना की उस सबसे छोटी इकाई को क्या कहते हैं, जिसे कंप्यूटर समझ व प्रोसैस कर सकता है ? >कौन-सा एक विटामिन अमरूद में प्रचुरता से मिलता है ? >लाल लाजपत राय किसके विरुध्द प्रदर्शन कर रहे थे, जब वे पुलिस की नृशंसता का शिकार हुए ? >भारतीय संविधान के अंतर्गत संप्रभु शक्तियां किसके पास होती हैं ? >भारतीय योजना आयोग का गठन कब हुआ था ? >संसार में सबसे व्यस्त और सबसे महत्त्वपूर्ण समुद्र मार्ग कौन सा है ? >भारतीय संविधान ने राज्यनीति के निदेशक सिध्दान्त कहाँ से लिए है ? >इतिहास का जनक किसे कहा जाता है ? >भारतीय रिजर्व बैंक, किस प्रणाली के अनुसार नोट जारी करता है ? >१947 ई. में भारत की स्वंतत्रता के समय इंग्लैण्ड में किस राजनीतिक दल की सरकार थी ? >भारत में पहला सफल यड्डत प्रत्यारोपण किसने किया ? >राष्ट्रीयड्डत बैंक का सबसे बड़ा शेयरधारक (प्रतिशत शेयरधारण में) कौन है ? >कार्बिलान कप किस खेल से सम्बन्धित है ? >भारत की कौनसी कम्पनी विश्व की चैथी बड़ी टेलीकॉम ऑपरेटर बन गई है ? >विश्व में प्रथम महिला प्रधानमंत्री कौन थी ? >स्वतंत्र भारत के चैथे राष्ट्रपति कौन थे ? >मोनेजाइट बालू में कौन-सा खनिज पाया जाता है ? >गेकोएला गेपोरेन्सिस किसकी प्रजाति का नाम है ? >यूनाइटेड किंगडम किसका एक उत्तम उदाहरण है ? >कथकली किस राज्य का प्रमुख नृत्य है ? >किस अनुच्छेद के द्वारा ६ से १4 वर्ष तक के बच्चों के लिए शिक्षा का अधिकार मूल अधिकार माना गया है ? >विश्व का दूसरा सबसे बड़ा महाद्वीप कौनसा है ? >जवाहर रोजगार योजना कब शुरू की गई थी ? >शनि के चक्रों की खोज किसने और कब की थी ? >भारतीय रिजर्व बैंक के लेखा वर्ष की अवधि क्या है ? >प्रसिध्द हल्दी घाटी का युध्द (१५7६ ई.) किनके मध्य लड़ा गया था ? >भारत के राष्ट्रपति, केवल किसकी लिखित सिफारिश पर राष्ट्रीय आपात.स्थिति की उद्घोषणा जारी कर सकते हैं ? मैनेज सर्विसेस बाय: समीक्षा सोफ्त्वार्
रूई की बॉल के जैसे कही नहीं देखे होंगे ऐसे चमगादड़, देखे वीडियो हक़ीक़त तोडे सोशल मीडिया पर कई ऐसे वीडियो देखने को मिल जाते है जिसे देख हैरानी होती है. हाल ही में एक रेनफॉरेस्ट स्पेशलिस्ट ने इंस्टाग्राम पर व्हाइट बैट्स का बेहतरीन वीडियो शेयर किया हुआ है, जिन्हें देखकर आपको बिलकुल भी डरेंगे नहीं. क्योंकि यह दिखने में रूई की छोटी बॉल की तरह है! इस शख्स ने कोस्टा रिका के वर्षावन में फोटो वॉल्क के दौरान इन सफेद चमगादड़ों को कैमरे में कैद किया है. आपको बता दें की, इन्हें होंडुरन व्हाइट बैट कहा जाता है, जो होंडुरास, निकारागुआ और पनामा में भी मिलते हैं. बता दें की यह वीडियो इंस्टाग्राम पेज सुप्रीत_सहू_ने शेयर किया है. इस शख्स ने खुद को रेनफॉरेस्ट स्पेशलिस्ट बताया है जिन्हें एक लाख से ज्यादा लोग फॉलो करते हैं. इनके पेज पर आपको बहुत से पक्षियों की कमाल की तस्वीरें और वीडियोज देखने को मिल सकते है. इस वीडियो को अब तक १३ हजार से अधिक व्यूज मिल चुके हैं. वहीं इन नन्हे प्यारे चमगादड़ों को कैरेबियन व्हाइट टेंट-मेकिंग बैट या कॉटन बॉल-बैट्स भी कहा जाता है. जिन्हें आप देख रहे हैं यही इनका मैक्सिमम साइज ही है! हालांकि, नर, मादा चमगादड़ों के मुकाबले थोड़े बड़े और भारी होते हैं. और हां, यह हेलिकोनिया पौधे की पत्तियों के नीचे ही रहते हैं और उन्हें खाकर न्यूट्रिशन पाते है. इसलिए इनके लिए टेंट-मेकिंग बैट शब्द यूज किया जाता है. यह पूरी तरीके से शाकाहारी होते हैं. अमुमन यह पत्तियों के नीचे ही अपना जीवन बीताते हैं. प्रत्येक रोस्ट में लगभग ६-७ चमगादड़ मिलता हैं, जो मोहब्बत और शांती से अपना जीवन बीताते हैं. लेकिन अब यह मुश्किल से ही देखने को मिल पाते है. अमेरिका में संक्रमित प्याज खाने से कई लोग हुए बीमार, हुआ चौकाने वाला खुलासा ग्लूकोज की खाली बोतलों को खेती के काम लाया किसान, जानिए कैसे
अबीर छऐटर्जी का जन्म १८ नवंबर १९८० को कोलकाता वेस्ट बंगाल में हुआ था अबीर चटर्जी (बंगाली: अबीर चटॉप्दैया) एक भारतीय अभिनेता है जो मुख्य रूप से बंगाली सिनेमा में काम करते है। वह थिएटर के व्यक्तित्व फल्गुनी और रुमी चटर्जी के पुत्र है। लोन अबीर छऐटर्जी अपनी स्नातक पूर्ण करने के लिए आईसीएफएआई विश्वविद्यालय में शामिल हुए। इन्होने ने वित्त(फ़ाइनेंस) में म्बा किया है इनकी माता का नाम फाल्गुनी और पिता का नाम रुमकी चटर्जी है। चेक वर्कर्स कंप क्लेम एंड डोनेट अबीर छऐटर्जी बंगाली टेलीविजन के साथ अपने करियर की शुरुआत की।इन्होने कई बंगाली फिल्मों में अभिनय किया है। वह थियेटर पर्सनालिटी फल्गुनी और रुमी चटर्जी के बेटे हैं। अबीर छऐटर्जी को २००६ में बंगाली फिल्म रबीबारेर बिकलबेला के साथ अपने करियर की शुरुआत की थी। उन्होंने ब्योमकेश बक्षी, शयन कक्ष, अबर बायोमकेश, बोजेना शेबे बोजेंना, कानामाची, द रॉयल बंगाल टाइगर, ब्योमकेश फायर एलो, हर हर ब्योमकेश और कई बंगाली फिल्मों में अभिनय किया। बायोमकेश पॉवरबो अबीर चटर्जी वियोमकेश एंड फेलुडा सीरीज़ में अपने कामों के लिए जाने जाते हैं। क्लेम अबीर छऐटर्जी का सम्बन्ध नंदिनी चटर्जी से था बाद में अबीर चटर्जी ने नंदिनी चटर्जी से विवाह कर लिया, उनकी एक बेटी है।जिसका नाम मयूराक्षी चटर्जी है। क्रेडिट अबीर छऐटर्जी की उम्र ३८ , अबीर छऐटर्जी की हाइट १८२ सेमी और वाइट ७९ किलो है अबीर चटर्जी शरीर का माप ४२-३८-१४ इंच, अबीर छऐटर्जी छाती की माप ४२ इंच, कमर ३८ इंच है। अबिर चटर्जी बालों का रंग काला है और उसकी आंखों का रंग भी काला है।
कांग्रेस का बड़ा ऐलान: सत्ता में आने पर गरीबों को देंगे सालाना ७२ हजार रुपये होम उत्तर प्रदेश कांग्रेस का बड़ा ऐलान- सत्ता में आने पर गरीबों को देंगे सालाना... कांग्रेस का बड़ा ऐलान- सत्ता में आने पर गरीबों को देंगे सालाना ७२ हजार रुपये पार्टी की कार्य समिति की बैठक के बाद गांधी ने संवाददाताओं से कहा, पिछले पांच वर्षों में देश की जनता को बहुत मुश्किलें सहनी पड़ी हैं। हमने निर्णय लिया और हम हिंदुस्तान के लोगों को न्याय देने जा रहे हैं। यह न्याय न्यूनतम आय गारंटी है। ऐसी योजना दुनिया में कहीं नहीं है। राहुल गांधी ने कहा कि पूरा आकलन कर लिया गया। सब कुछ तय कर लिया गया। उन्होंने कहा कि इससे पांच करोड़ परिवार यानी २५ करोड़ लोगों को फायदा होगा। प्रेवियस आर्टियलजानिए कब जारी होगा यूपी बोर्ड की १०वीं और १२वीं की परीक्षा का रिजल्ट नेक्स्ट आर्टियलकांग्रेस कार्यकर्ताओं का विधायक सुरेन्द्र सिंह के खिलाफ प्रदर्शन, कोतवाली में दी तहरीर यूपी बोर्ड हजार रुपये में परीक्षा से पहले बिका केमिस्ट्री...
- शहर की यातायात व्यवस्था सुधारने शुरु की अतिक्रमण हटाओ मुहिम शहर में यातायात व्यवस्था को बेहतर करने के लिए व नगर के मुख्य मार्गो पर अस्थाई अतिक्रमण को हटाने के लिए शनिवार को प्रशासन, नगर पालिका, विद्युत मंडल, मप्र राजस्व विभाग के अधिकारी व कर्मचारी सड़को पर आ गए। इस दौरान अधिकारियों ने दुकानो के बाहर अधिक मात्रा में रखे गए सामान को भी हटाकर अतिक्रमण मुक्त किया और कई लोगों ने स्वेच्छा से अतिक्रमण हटाया। कुछ लोगों ने अतिक्रमण हटाने का विरोध भी किया, लेकिन अधिकारियों ने उनकी एक नहीं सुनी और अतिक्रमण तोड़ दिया। कई लोगों का सामान भी जब्त किया। इसके साथ ही नगरपालिका टीम ने लोगों को समझाईश दी कि यदि फिर से अतिक्रमण हुआ तो आकस्मिक कार्रवाई कर अतिक्रमण हटाया जाएगा। विद्युत कंपनी के कर्मचारियों ने कई दुकानदारों के विद्युत कनेक्शन विच्छेद करने की कार्रवाई भी की। शहर के कालिदास मार्ग, पं नेहरू बस स्टैंड, सदर बाजार, घंटाघर, गांधी चौराहा, हॉस्पिटल रोड, बीपीएल चौराहा, महू नीमच रोड, महाराणा प्रताप बस स्टेण्ड, धानमण्डी, सम्राट मार्केट क्षेत्रों में यातायात व्यवस्था में सुधार लाने के लिए सभी विभागों के साथ संयुक्त रूप से अतिक्रमण हटाओ मुहिम चलाई गई। उल्लेखनीय है कि 'पत्रिका ने शहर की बिगड़ती यातायात व्यवस्था को लेकर खबर प्रकाशित कर जिम्मेदारों का ध्यान आकर्षित किया था। तब जाकर जिम्मेदार जागे और यातायात व्यवस्था को बेहतर बनाने के लिए मुख्य मार्गो से अस्थाई अतिक्रमण हटाने का निर्णय लिया। शुक्रवार को नगर पालिका सभागृह में जिला प्रशासन, नगर पालिका, विद्युत मंडल, मप्र राजस्व विभाग के अधिकारियो व कर्मचारियो की बैठक आयोजित हुई थी। पार्किंग स्थलों पर रहेगा पार्किंग सुविधा बैठक में निर्णय लिया गया था कि नगर पालिका व यातायात विभाग द्वारा बनाए गए पार्किग स्थल जैसे धानमंडी के समीप स्थित पुराना लक्कड़पीठा, श्रीजी चित्र मंदिर के समीप पुराना रोडवेज डिपो आदि स्थानो पर पार्किग की सुविधा रहेगी। इसके अतिरिक्त अन्य स्थान पर बड़े व अन्य चार पहिया वाहनो के खड़े किए जाने पर चालान की कार्रवाई की जाएगी। नगर पालिका द्वारा मुख्य मार्गो पर अस्थाई अतिक्रमण को रोकने के लिए मेन रोडो पर लाईनिंग की जाएगी। कलेक्ट्रेट परिसर स्थित साइकिल व वाहन स्टैंड का संचालन अब नगर पालिका के द्वारा नहीं किया जाएगा। नगर पालिका इसके संचालन के लिए जिला अभिभाषक संघ को पत्र लिखेगी और उनसे इसके संचालन का निवेदन करेगी। बैठक में यह भी निर्णय हुआ कि पैदल चलने वाले लोगो के लिए जहां भी आवश्यकता है वहा सडको पर जेबरा क्रांसिंग बनाई जाएगी। बैठक में नपाध्यक्ष प्रहलाद बंधवार, उपाध्यक्ष सुनिल जैन, अनुविभागीय अधिकारी एनएस राजावत, सीएमओ हिमांशु भट्ट, यातायात थाना प्रभारी किशोर पाटनवाला, नायब तहसीलदार शिवदत्त शर्मा, विद्युत मंडल के सहायक यंत्री आरके नायर, नपा सभापति मुकेश खमेसरा सहित कई अधिकारी व कर्मचारी उपस्थित थे। #कूल_इंडिया - मंदसौर में बावड़ी के संरक्षण के लिए आज जुटेंगे आम से खास
अवसाद या डिप्रेशन का तात्पर्य मनोविज्ञान के क्षेत्र में मनोभावों संबंधी दुख से होता है। इसे रोग या सिंड्रोम की संज्ञा दी जाती है। आयुर्विज्ञान में कोई भी व्यक्ति डिप्रेस्ड की अवस्था में स्वयं को लाचार और निराश महसूस करता है। उस व्यक्ति-विशेष के लिए सुख, शांति, सफलता, खुशी यहाँ तक कि संबंध तक बेमानी हो जाते हैं। उसे सर्वत्र निराशा, तनाव, अशांति, अरुचि प्रतीत होती है।[१] अवसाद के भौतिक कारण भी अनेक होते हैं। इनमें कुपोषण, आनुवांशिकता, हार्मोन, मौसम, तनाव, बीमारी, नशा, अप्रिय स्थितियों में लंबे समय तक रहना, पीठ में तकलीफ आदि प्रमुख हैं। इनके अतिरिक्त अवसाद के ९० प्रतिशत रोगियों में नींद की समस्या होती है। मनोविश्लेषकों के अनुसार अवसाद के कई कारण हो सकते हैं। यह मूलत: किसी व्यक्ति की सोच की बुनावट या उसके मूल व्यक्तित्व पर निर्भर करता है। अवसाद लाइलाज रोग नहीं है। इसके पीछे जैविक, आनुवांशिक और मनोसामाजिक कारण होते हैं। यही नहीं जैवरासायनिक असंतुलन के कारण भी अवसाद घेर सकता है।[२] इसकी अधिकता के कारण रोगी आत्महत्या तक कर सकते हैं।[३] इसलिए परिजनों को सजग रहना चाहिए और उनके परिवार का कोई सदस्य गुमसुम रहता है, अपना ज्यादातर समय अकेले में बिताता है, निराशावादी बातें करता है तो उसे तुरंत किसी अच्छे मनोचिकित्सक के पास ले जाएं। उसे अकेले में न रहने दें। हंसाने की कोशिश करें।[४] मनोविश्लेषकों के अनुसार प्राकृतिक तौर पर महिलाएं पुरुषों की अपेक्षा अवसाद की शिकार कम बनती हैं, लेकिन अवांछित दबावों से वह इसकी शिकार हो सकती हैं। इस कारण प्रायः माना जाता है कि महिलाओं को अवसाद जल्दी आ घेरता है। इसके विपरीत पुरुष अक्सर अपनी अवसाद की अवस्था को स्वीकार करने से संकोच करते हैं। मोटे अनुमान के अनुसार दस पुरुषों में एक जबकि दस महिलाओं में हर पांच को अवसाद की आशंका रहती है।[२] इसके उपचार में योगासन में प्राणायाम बहुत सहायक सिद्ध हुआ है।[१] कई बार अतिरिक्त चिड़चिड़ापन, अहंकार, कटुता या आक्रामकता अथवा नास्तिकता, अनास्था और अपराध अथवा एकांत की प्रवृत्ति पनपने लगती है या फिर व्यक्ति नशे की ओर उन्मुख होने लगता है। ऐसे में जरूरी है कि हम किसी मनोचिकित्सक से संपर्क करें। व्यक्ति को खुशहाल वातावरण दें। उसे अकेला न छोड़ें तथा छिन्द्रान्वेषण कतई न करें। उसकी रुचियों को प्रोत्साहित कर, उसमें आत्मविश्वास जगाएँ और कारण[६] जानने का प्रयत्न करें।[१] अमेरिका के कुछ वैज्ञानिकों ने गहन शोध के बाद यह दावा किया है कि यदि कोई व्यक्ति लगातार सकारात्मक सोच का अभ्यास करता है, तो वह उसके डिप्रेशन या अवसाद की स्थिति का एकमात्र इलाज हो सकता है। अमेरिकन एकेडमी ऑफ फैमेली फिजिशियन का कहना है कि लोगों को नकारात्मक नहीं सोचना चाहिए। न ही विफलता के भय को लेकर चिंतित होते रहना चाहिए। इनकी बजाय हमेशा सकारात्मक सोच दिमाग में रखना चाहिए जो होगा अच्छा होगा।[७] घर में अन्य सदस्यों को अवसाद की बीमारी होने से भी यह परेशानी महिलाओं को जल्दी पकड़ती है। क्योंकि घर से लगाव पुरुषों के मुकाबले उन्हें ज्यादा होता है। इसके चलते कभी-कभी उनमें आत्महत्या की इच्छा जोर मारने लगती है। इसलिए पुरुषों के मुकाबले महिलाओं का अवसाद ज्यादा खतरनाक होता है। हालांकि मंदी और कॉम्पटीशन के दौर में डिप्रेशन अब युवाओं को भी अपना शिकार बनाने लगा है इसलिए कोशिश यह रखनी चाहिए कि आप खुशनुमा पलों की तलाश करें और सकारात्मक सोच रखें।[२] इससे बचने के उपायों में व्यस्त रहकर मस्त रहना, अपने लिए समय निकालना, संतुलित आहार सेवन, अपने लिए समय निकालना और सामाजिक मेलजोल बढ़ाना मूल उपाय हैं।[८] अ आ इ द्विवेदी, प्रतिभा. "प्राणायाम से दूर भगाएँ डिप्रेशन". वेब दुनिया. अ आ इ श्रीवास्तव, सोनिका (३० मई). "लाइलाज नहीं डिप्रेशन". समय लाइव. डिप्रेशन बनाम छात्र जिन्दगी। समय लाइव।१५ मई, २००९। अनुराग शुक्ला। कानपुर "क्या डिप्रेशन (अवसाद) और एन्जायटी (चिंता) एक दूसरे के पूरक है?". माईवेब दुनिया. कहीं पार्टनर डिप्रेशन में तो नहीं! " से लिया गया श्रेणियाँ: आज का आलेखमानसिक स्थितिमनोविज्ञानमस्तिष्कमानसिक रोगछुपी हुई श्रेणी: हिन्दी विकि डीवीडी परियोजना दिक्चालन सूची
'इस्राइली ड्रोन हमले में दो फलस्तीनी मारे गए' गाजा सिटी: दक्षिणी गाजा में आज सुबह एक इस्राइली ड्रोन के हमले में दो फलस्तीनी मारे गए. चिकित्साकर्मियों ने कहा कि ये हमले दो अन्य के एक अलग हमले में मारे जाने के बाद किया गया है. गाजा पट्टी के स्वास्थ्य सेवाओं के प्रवक्ता अशरफ अल कुद्रा ने कहा कि पूर्वी रफा में हुए हमले में दो फलस्तीनी मारे गए और दो अन्य घायल हो गए. प्रत्यक्षदर्शियों ने कहा कि मारे गए विद्रोही थे लेकिन घायल होने वाले नागरिक थे. हमास की सैन्य शाखा इजेदीन अल कासिम ब्रिगेड ने कहा कि रफा में इस्राइली हमले में उनके छह लोग मारे गए. कुद्रा ने कासिम के बयानों की पुष्टि नहीं की. प्रत्यक्षदर्शियों ने कहा कि कासिम के सदस्य उस समय मारे गए जब इस्राइली हमले में एक सुरंग उन पर ध्वस्त हो गई. इस्राइली सेना ने कहा कि उसने पूरे गाजा पट्टी में नौ विद्रोही स्थलों और छुपाकर रखे गए राकेट लांचरों को निशाना बनाया गया. सेना ने कहा कि ये हमले कल विद्रोहियों द्वारा इस्राइल पर २५ मोर्टार और राकेट दागे जाने के बाद किये गए हैं. कल देर रात बुरेजी शरणार्थी शिविर के पूर्व में इस्राइल के एक अन्य ड्रोन हमले में दो अन्य फलस्तीनी विद्रोही मारे गए थे.
बुलंदशहर हिंसा में इंस्पेक्टर की मौत: ५ लोग गिरफ्तार, २७ के खिलाफ नामजद फिर दर्ज बुलंदशहरः उत्तर प्रदेश के बुलंदशहर में गोकशी को लेकर हुई इंस्पेक्टर सुबोध कुमार समेत २ लोगों की मौत के बाद पुलिस एक्शन मोड में दिखाई दी। पुलिस ने देर रात छापेमारी कर इस मामले में ५ लोगों को गिरफ्तार कर लिया है, जबकि २7 नामजद और ६० अज्ञात लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया है। मामले में बजरंग दल के जिला संयोजक योगेश राज को मुख्य आरोपी करार किया गया है। एडीजी मेरठ जोन प्रशांत कुमार ने बताया कि मामले में ५ लोगों को अब तक गिरफ्तार किया जा चुका है। घटना के शेष नामजद और अज्ञात अभियुक्तों की गिरफ्तारी के लिए दबिश दी जा रही है। उन्होंने बताया कि फिलहाल घटनास्थल वाले क्षेत्र में पूरी तरह शांति है। हालांकि, एहतियात के तौर पर वहां पर अतिरिक्त पुलिस बल तैनात किया गया है। साथ ही उन्होंने बताया कि जांच के लिए एसआईटी का गठन किया गया है। इस जांच में यह पता लगाया जाएगा कि हिंसा क्यों हुई और क्यों पुलिस अधिकारी इंस्पेक्टर सुबोध को अकेला छोड़कर भाग गए। एडीजी के मुताबिक, इंस्पेक्टर की पोस्टमार्टम रिपोर्ट में उन्हें गोली लगने की पुष्टि हुई है। रिपोर्ट के मुताबिक गोली उनकी बाईं भौंह से होते हुए सिर के अंदर चली गई। उन्होंने बताया कि घटना में मारे गए सुमित के शव का भी पोस्टमार्टम हो गया है, जिसकी रिपोर्ट में उसकी मौत का कारण गोली लगना बताया गया है। इससे पहले आज सुबह दिवंगत सुबोध कुमार को पुलिस लाइन में अंतिम सलामी दी गई। इसके बाद उनके शव को अंतिम संस्कार के लिए उनके गृह जनपद एटा के लिए रवाना किया गया। बुलंदशहर में गोकशी की अफवाह के बाद बवाल मच गया। इसमें पुलिस इंस्पेक्टर समेत दो लोगों की मौत हो गई। इस हिंसा में दो लोग जख्मी भी हुए हैं। यह हिंसा ऐसे वक्त हुई है जब क्षेत्र में ३ दिन से चल रहे मुस्लिम समुदाय के इज्तिमा का समापन था। यहाँ आप निःशुल्क रजिस्ट्रेशन कर सकते हैं, भारत मॅट्रिमोनी के लिए!उप क्राइम न्यूज की अन्य न्यूज पढऩे के लिए फेसबुक और ट्विटर पर फॉलो करें-
स्टेट ताइक्वांडो एडोब कमेटी की बैठक का आयोजन - अब्य्टकन्यूज स्टेट ताइक्वांडो एडोब कमेटी की बैठक का आयोजन फरीदाबाद(अब्य्टकन्यूज.कॉम ) हरियाणा में ताइक्वांडो खिलाडिय़ों के बेहतर भविष्य और ताइक्वांडों को बढावा देने के लिए एन.एच.२ में स्टेट ताइक्वांडो एडोब कमेटी की बैठक का आयोजन किया गया। बैठक में हरियाणा में ताइक्वांडो चैम्पियनशिप के आयोजन को लेकर भी चर्चा की गई। जिसमें ताइक्वांडों खिलाडिय़ों को आई कार्ड देने, ट्रेनिंग कैम्प आयोजित करने सहित ब्लैक बेल्ट सेमीनार आयोजित करने का निर्णय लिया गया। मीटिंग में प्रदेश के लगभग २0 जिलों से आए प्रतिनिधियों एवं खिलाडिय़ों ने भाग लिया। इस मौके पर खिलाडिय़ों ने अपनी प्रतिभा का प्रदर्शन करते हुए एक सुंदर डेमो भी प्रस्तुत किया। बैठक में मुख्य रूप से सुप्रीम कोर्ट के एडवोकेट फिरोज अहमद एवं कांग्रेसी नेता संजय सैफी ने आए हुए खिलाडिय़ों की हौसलाफजाई की और विश्वास दिलाया कि हरियाणा में ताइक्वांडों को बढ़ावा दिया जाएगा और इस बार भारत की टीम ओलम्पिक में क्वालिफाई करेगी। सैफी एवं फिरोज अहमद ने कहा कि राज्य स्तरीय ताइक्वांडो प्रतियोगिता में वो पूरी मदद करेंगे और कोशिश करेंगे कि सरकार से इन खिलाडिय़ों को प्रमोट करे। फिरोज अहमद ने कहा कि प्रदेश में इंडियन फैडरेशन ऑफ ताइक्वांडो के नाम पर चल रही गैर कानूनी संस्थाओं पर भी कानूनी रोक लगाई जाएगी, ताकि खिलाडिय़ों के भविष्य के साथ खिलवाड़ न हो। इस बैठक में सिरसा से रविन्द्र, महेन्द्रगढ़ से विनय भार्गव, रेवाड़ी से कर्मजीत, फतेहाबाद से प्रमोद कौशिक, जीन्द से अश्वनी, रोहतक से अशोक अकेला, कैथलसे संदीप वैद्य, शिव कुमार, कुरुक्षेत्र से संजय कत्याल, उदय चौहान, पंचकुला से पूनम, ज्ञानेन्द्र तिवारी, यमुनानगर से प्रभाकर शर्मा, करनाल से कपिल, सोनीपत से सुरेन्द्र सिंह, मेवात से शाहनवाज, गुडग़ांव से प्रिया एवं ताज मोहम्मद, भिवानी से ओमप्रकाश भार्गव, पलवल से ओमप्रकाश सैनी, झज्जर से सुरेन एवं सचिन तथा फरीदाबाद से सैयद फिरोज, सुबोध, अमित, संदीप थापा एवं उमेश कुमार सहित शमीम प्रधान, कांग्रेस के लोकसभा सचिव आसिफ सैफी विशेष रूप से मौजूद थे।
चित्र पर लघु कथा - कहा-सुनी के बाद वह चली गयी रसोई में और वह घर के बाहर, चलते-चलते थक गया तो एक पेड़ के नीचे बैठ गया. कब झपकी लगी पता ही न चला, आँख खुली तो थकान दूर हो गयी थी, कानों में कोयल के कूकने की मधुर ध्वनि पड़ी तो मन प्रसन्न हुआ. तभी ध्यान आया उसका जिसे छोड़ आया था घर में, पछतावा हुआ कि क्यों नाहक उलझ पड़ा? कुछ सोच तेजी से चल पड़ा घर की ओर, वह डबडबाई आँखों से उसी को चिंता में परेशान थी, जैसे ही उसे अपने सामने देखा, राहत की साँस ली. चार आँखें मिलीं तो आँखें चार होने में देर न लगी. दोनों ने एक-दुसरे का हाथ थामा और पहुँच गये वहीं जहाँ अनेकता में एकता का सन्देश दे नहीं, जी रहे थे वे सब जिन्हें अल्पबुद्धि जीव कहते हैं वे सब जो पारस्परिक विविधता के प्रति नहीं रख पा रहे अपने मन में सहिष्णुता।
होम राजनीति फुटपाथ पर सोता हूँ, मोबाइल भी किसी ने चुरा लिया: ओडिशा ब्जप म्ला ने... कमरा आवंटन के संबंध में गृह विभाग के अतिरिक्त सचिव से मुलाकात पर माँझी ने कहा, जब मैं उस अधिकारी से मिलने गया तो उसने ध्यान ही नहीं दिया, उन्होंने ये तक इशारा किया कि मैं उनके ऑफिस से निकल जाऊँ। ओडिशा भाजपा विधायक मोहन चरण माँझी (फाइल फोटो) अक्सर ऐसा देखा गया है कि नेता जी जैसे ही विधायक बनते हैं पॉश इलाके वाले बंगले में रहना शुरू कर देते हैं। लेकिन ओडिशा में एक ऐसा मामला देखने को आया है जहाँ भारतीय जनता पार्टी के तीन बार विधायक रह चुके मोहन चरण माँझी फुटपाथ पर सोने को मजबूर हैं। क्योंकि नवीन पटनायक सरकार ने उन्हें न तो कोई बंगला आवंटित किया है और न ही कोई सरकारी गेस्ट हाउस दिया है। मांझी पिछले तीन बार से कियोनझार के विधायक हैं. चरण मांझी ने विधानसभा के शून्य काल के दौरान अपनी बात कही. ओडिशा विधानसभा में बीजेपी के चीफ व्हिप मोहन चरण माँझी ने शुक्रवार (जुलाई १२, २०१९) को इस मामले को विधानसभा अध्यक्ष के सामने उठाया। माँझी तीन बार से कियोनझार के विधायक हैं, लेकिन उन्हें अभी तक ओडिशा सरकार की तरफ से भुवनेश्वर में घर आवंटित नहीं किया गया है। उन्होंने कहा कि विधायक की शपथ लेने के एक महीने के बाद भी उन्हें घर नहीं मिला है। माँझी की समस्या सुनने के बाद विधानसभा अध्यक्ष एसएन पात्रो ने कहा कि उनकी सारी परेशानियाँ दूर की जाएँगी और उन्होंने इस बारे में बात करने के लिए अपने कक्ष में बुलाया। माँझी ने बताया कि दो दिन पहले फुटपाथ पर सोने के दौरान उनका फोन चोरी हो गया, उनके निजी सचिव पर भी कुछ लोगों ने हमला किया। उन्होंने कहा कि इसके लिए उन्होंने गृह विभाग के अतिरिक्त सचिव को भी बताया और कहा कि उन्हें कमरा आवंटित कर दें, लेकिन उन्होंने भी उनकी एक नहीं सुनी। माँझी ने गृह विभाग के अतिरिक्त सचिव के बारे में बताते हुए कहा, जब मैं उस अधिकारी से मिलने गया तो उसने ध्यान ही नहीं दिया, बैठने के लिए कुर्सी बढ़ाने की बात तो भूल ही जाइए। उन्होंने ये तक इशारा किया कि मैं उनके ऑफिस से निकल जाऊँ। बता दें कि, ओडिशा में बीजू जनता दल की सरकार है और बीजेपी यहाँ पर मुख्य विपक्षी दल है। राज्य में लोकसभा के साथ ही विधानसभा के चुनाव हुए थे। जिसके बाद राज्य में बीजेडी ने नवीन पटनायक की अगुवाई में सरकार बनाई।
इप्ल २०१८ : इस नए नियम से सीएसके ने बनाई फाइनल में जगह नव दिल्ली. सनराइजर्स हैदराबाद को २ विकेट से हराकर चेन्नई ने आईपीएल फाइनल में अपनी जगह बना ली है लेकिन क्या आप जानते है, सीएसके को फाइनल में पहुंचाने में आईपीएल में पहली बार शामिल किये गये डीआरएस के नियम ने अहम भूमिका निभाई। यह भी पढ़ें...इप्ल २०१८ : शार्दुल को काम आई धोनी की यह सलाह थर्ड अंपायर ने पलटा फील्ड अंपायर का फैसला सीएसके ने सनराइजर्स हैदराबाद के सामने १४० रन का लक्ष्य रखा था। यह लक्ष्य चेन्नई की बल्लेबाजी क्रम के सामने आसान लग रहा था लेकिन हैदराबाद के गेंदबाजों ने इसे मुश्किल बना दिया। राशिद खान के स्पेल की आखिरी ओवर के पहले गेंद पर डु प्लेसिस को अंपायर ने पगबाधा की मांग पर आउट दे दिया था। यह चेन्नई की पारी का १५.१ ओवर था। इस समय चेन्नई की टीम ने ९२ रन बनाए थे और उसके ७ विकेट गिर चुके थे। जीत के लिए उसे ४८ रन की जरूरत थी। डु प्लेसिस ने अंपायर के फैसले के खिलाफ रिव्यू मांगा। थर्ड अंपायर ने रिप्ले में पाया कि गेंद विकेट से दूर जा रही है और बल्लेबाज आउट नहीं हैं। थर्ड अंपायर ने फील्ड अंपायर के इस फैसले को बदलते हुए डु प्लेसिस को नॉट आउट करार दिया। इसके बाद डु प्लेसिस ने मैच जिताऊ पारी खेलते हुए सीएसके के लिए फाइनल की राह तय की। प्रेवियस न्यूजजब बिग बी ने वापस भिजवा दिए थे शाहरुख के १० लाख रुपये
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ममूटी से वेंकटेश तक, क्या आपने देखीं साउथ के सुपरस्टार की खूबसूरत बेटियां ममूटी के दो बच्चे हैं, जिनमें एक बेटी कुट्टी सुरुमी और बेटा दुलकीर सलमान हैं। मुंबई/चेन्नई। साउथ के सुपरस्टार रजनीकांत और कमल हासन की बेटियों के बारे में तो काफी लोग जानते हैं, लेकिन साउथ इंडियन फिल्मों के दूसरे सुपरस्टार जैसे ममूटी, वेंकटेश, चिरंजीवी, और मोहनलाल की बेटियां अक्सर लो-प्रोफाइल ही रही हैं। इस पैकेज में हम बता रहे हैं साउथ फिल्मों के ८ सुपरस्टार्स और उनकी बेटियों के बारे में। बेटी : कुट्टी सुरुमी ममूटी का पूरा नाम मुहम्मद कुट्टी इस्माइल पनीपरमबिल है। ममूटी वैसे तो मलयालम फिल्मों के सुपरस्टार हैं, लेकिन हिंदी, तमिल और कन्नड़ भाषाओं में भी उन्होंने कई फिल्में की हैं। उनके दो बच्चे हैं, जिनमें एक बेटी कुट्टी सुरुमी और बेटा दुलकीर सलमान हैं। दुलकीर भी साउथ फिल्मों के एक्टर हैं। लाइमलाइट से दूर रहने वाली कुट्टी सुरुमी की शादी डॉ. मोहम्मद रेहान से हुई है। आगे की स्लाइड्स पर जानिए कुछ और साउथ सुपरस्टार और उनकी बेटियों के बारे में... बेटियां : आश्रिता, हयावाहिनी और भावना वेंकटेश का पूरा नाम दग्गुबती वेंकटेश है। उन्होंने साउथ के साथ कई हिंदी फिल्मों में भी काम किया है। १९८५ में उन्होंने नीरजा से शादी की। दोनों के तीन बेटियां और एक बेटा है। बेटे का नाम अर्जुन रामनाथ दग्गुबती है। बेटियां आश्रिता, हयावाहिनी और भावना हमेशा लाइमलाइट से दूर रही हैं। बेटियां : सुष्मिता और श्रीजा चिरंजीवी ने अपने करियर की शुरुआत 'पुनधिरल्लु' फिल्म से की लेकिन उनकी पहली रिलीज फिल्म 'प्रणाम खरीदु' (१९७८) है। इसके बाद उन्होंने कुछ फिल्मों में छोटे-छोटे रोल किए। १९८२ में आई फिल्म 'इंटलो रामय्या वीडिलो कृष्णय्या' में वे बतौर लीड एक्टर नजर आए। ये फिल्म सुपरहिट रही। इसके अलावा उन्होंने 'पसिवादी प्रणाम' (१९८७), 'यामूडीकी मोगुड़ू' (१९८८), 'मांची डोंगा' (१९८८), 'कोंडवेट्टी दोंगा' (१९९०) सहित कई फिल्मों में काम किया। उनका एक बेटा रामचरण तेजा और दो बेटियां सुष्मिता और श्रीजा है। सुष्मिता की शादी विष्णु प्रसाद से २००६ में हुई थी। वहीं, श्रीजा ने शिरीष भारद्वाज से २००७ में सीक्रेट मैरिज की थी। लेकिन बाद में दोनों के बीच रिश्ते बिगड़ने लगे। श्रीजा ने शिरीष पर दहेज मांगने का आरोप लगाया था। बाद में दोनों ने तलाक ले लिया। फिर श्रीजा ने परिवारवालों की मर्जी से २०१६ में ज्वैलरी बिजनेसमैन कल्याण से शादी की। इस समय दोनों यूएसए में रहते हैं। चिरंजीवी की दोनों ही बेटियां फिल्मों से दूर हैं। बेटी : विस्मया मोहनलाल मोहनलाल का पूरा नाम मोहनलाल विश्वनाथ नायर है। उन्होंने १९८० में फिल्म 'मंजिल विरिंजा पूक्कल' से डेब्यू किया था। एक्टर के साथ-साथ वो प्रोड्यूसर, सिंगर और थिएटर आर्टिस्ट भी हैं। मलयालम के अलावा तमिल, तेलुगु, कन्नड़ और हिंदी फिल्मों (कंपनी, तेज) में भी काम किया है। मोहनलाल का एक बेटा प्रणव और बेटी विस्मया है। विस्मया आमतौर पर कैमरे से दूर रहना ही पसंद करती हैं। बेटी : दिव्या सत्यराज फिल्म 'बाहुबली' में कटप्पा का रोल प्ले कर चुके साउथ एक्टर सत्यराज का असली नाम रंगाराज सुबय्या है। उनकी एक बेटी और एक बेटा है। बेटे का नाम सिबिराज और बेटी का दिव्या है। सिबिराज भी एक्टर हैं। दिव्या पेशे से न्यूट्रिशनिस्ट हैं। उन्होंने इसी सब्जेक्ट में एम फिल किया है और फिलहाल पीएचडी कर रही हैं। इसके अलावा फूड एंड न्यूट्रिशन सब्जेक्ट पर एक किताब भी लिख रही हैं। दिव्या ने हाल ही में तमिल रिफ्यूजियों को कुपोषण और एनीमिया जैसी बीमारियों से बचाने के लिए हेल्दी ईटिंग और विटामिन थेरेपी पर अवेयरनेस कैम्प भी लगाया था। बेटी : अक्षिता विक्रम 'अपरिचित' और 'आई' जैसी फिल्मों में काम कर चुके सी विक्रम उर्फ चियां विक्रम का असली नाम केनेडी जॉन विक्टर है। विक्रम ने १९९० में तमिल फिल्म 'एन कढल कनमनी' से डेब्यू किया था। १९९२ में उन्होंने शैलजा बालकृष्णन से शादी की। विक्रम और शैलजा का एक बेटा और एक बेटी है। उनके बेटे का नाम ध्रुवकृष्णा और बेटी का अक्षिता है। अक्षिता ने मनु रंजीत से शादी की है। बेटियां : श्रुति और अक्षरा सुपरस्टार कमल हासन को साउथ फिल्मों के अलावा बॉलीवुड की फिल्मों में बेहतरीन एक्टिंग के लिए भी जाना जाता है। उन्होंने 'सागर', 'गिरफ्तार', 'जरा सी जिंदगी', 'राज तिलक', 'एक नई पहेली', 'देखा प्यार तुम्हारा', 'चाची ४२०', 'हे राम', 'विश्वरूपम्' सहित कई फिल्मों में काम किया। कमल हासन ने एक्ट्रेस सारिका से शादी की, जिनसे उनकी दो बेटियां श्रुति और अक्षरा हैं। दोनों ही एक्ट्रेस हैं। बेटियां : ऐश्वर्या और सौन्दर्या रजनीकांत का असली नाम शिवाजीराव गायकवाड़ है। उन्होंने २६ फरवरी १९८१ को लता रंगाचारी से शादी की। रजनीकांत और लता की दो बेटियां सौंदर्या और ऐश्वर्या हैं। उनकी बड़ी बेटी की शादी इंडस्ट्रियलिस्ट अश्विन रामकुमार से और छोटी बेटी ऐश्वर्या की शादी साउथ एक्टर व सिंगर धनुष से हुई है। हालांकि सौंदर्या अब पति अश्विन से तलाक ले चुकी हैं।
दूध देने वाली गाय को लात नहीं मारी जाती मोदी जी, दुलार किया जाता है, लिहाजा आप भी दुलारिए। | राष्ट्र रक्षक फाउंडेशन राष्ट्र रक्षक फाउंडेशन होम राष्ट्र रक्षक फाउंडेशन दूध देने वाली गाय को लात नहीं मारी जाती मोदी जी, दुलार... दूध देने वाली गाय को लात नहीं मारी जाती मोदी जी, दुलार किया जाता है, लिहाजा आप भी दुलारिए। भारतीय जनता पार्टी को अपने उन्हीं मुद्दों पर कायम रहना होगा जिसके दम पर वो २०१४ का चुनाव जीते थे राजा मांडा के नक़्शे कदम पर चल रहे हैं हमारे मोदी जी आजकल देश की राजनीति में एक भूचाल सा आया हुआ है। राजनीति के अंगद माने जाने वाले नरेंद्र दामोदार दास मोदी के पैर भी हिलते नजर आ रहे हैं। हालांकि अभी इस अंगद के पैर पूरी तरह से उखड़े नहीं हैं लेकिन हालात सुधरे नही ंतो वो दिन दूर नहीं जब ना तो पैर रहेगा और ना पैर के नीचे की जमीन। मैं ऐसा क्यों कह रहा हूं इसके पीछे कुछ ठोस कारण हैं। वो कारण समझाने के लिए आपको थोड़ा फ्लैश बैक में ले चलता हूं। तो जरा गौर से पढ़िए और समझिए: भारतीय राजनीति में कुछ सालों पहले एक महानुभाव ने कदम रखा। नाम था विश्वनाथ प्रताप सिंह, कुछ लोग उन्हें राजा मांडा भी कहते थे। सवर्ण समाज से आते थे लिहाजा सवर्ण समाज ने उन्हें सिर माथे पर बिठाया और राजा साहब ने सवर्ण समाज के माथे पर पैर रख कर सीधे देश के प्रधानमंत्री की कुर्सी तक का रास्ता तय कर लिया। बस फिर क्या था, एक तो बाबू साहब उपर से राजा साहब, यानि कि एक तो करेला उपर से नीम चढ़ा। राजा साहब अपनी औकात ही भूल गए और सीधी लात मारी उस गाय को जिसका दूध पीकर वो बड़े हुए थे। यानि कि जिस सवर्ण समाज के पीठ को पायदान बना कर सियासत की सीढ़ियां चढ़े थे उसी पीठ में खंजर घोंप दिया। मंडल आरक्षण कानून को केंद्र में लागू करके अपने ही सवर्ण समाज पर कहर ढा दिया। हालांकि जिसे खुश करने के लिए राजा साहब ने ये किया उन्होंने ने भी राजा साहब को कबूल नहीं किया क्योंकि राजा साहब उनकी बिरादरी से नहीं थे। बस फिर क्या था, सवर्ण समाज ने राजा साहब को ऐसी लात मारी कि राजा साहब राजनीतिक पटल से ही गायब हो गए और इसका खामियाजा बड़े पैमाने पर कांग्रेस को भी भुगतना पड़ा। तत्कालीन प्रधानमंत्री विश्वनाथ प्रताप सिंह, जिन्होंने मंडल कमीशन लागू करके सवर्ण समाज के साथ विश्वासघात किया था खैर ये तो राजा साहब थे, लेकिन हमारा हिंदू समाज और उसमें भी खासकर सवर्ण समाज तो इस कदर दरियादिल है कि एक चाय बेचने वाले को भी देश का सर्वेसर्वा चुन लिया। २०१४ में हिंदुओं ने खास कर सवर्ण समाज ने नरेंद्र दामोदर दास मोदी को पूर्ण बहुमत से देश का मुखिया चुना। मगर सिर्फ मोदी को ही क्यों ? क्योंकि सत्ता में आने से पहले मोदी साहब ने राम मंदिर, गौवध कानून, काॅमन सिविल कोड, धारा ३७० जैसे तमाम मुद्दों पर हिंदुओं को हसीन सपने दिखाए थे। लेकिन ये क्या सत्ता में आने के बाद सबकुछ उल्टा हो गया। राम मंदिर तो बना नहीं लेकिन पैगबंर के लिए प्यार उमड़ पड़ा। गौवध कानून तो बना नहीं लेकिन गौरक्षक गुंडे हो गए। काॅमन सिविल कोड तो बना नहीं लेकिन विशेष रूप से मुस्लिम लड़कियों को ५० हजार का शगुन पैकेट मिलने लगा। चलिए हम ये सब भी बर्दाश्त कर लेते लेकिन बात यहीं खत्म नहीं हुई। जो सवर्ण समाज बीजेपी का सबसे बड़ा वोट बैंक है, मोदी जी ने उसी पर तलवार चला दी, जानलेवा एससी/एसटी एक्ट कानून पास करके। केंद्र सरकार द्वारा लागू किये गए नए एससी/एसटी एक्ट ने सवर्ण समाज को झकझोर कर रख दिया फिर क्या होना था, एक बार फिर से दुधारू गाय ने लात मार दी और मध्यप्रदेश, छत्तीसगढ़ के साथ ही राजस्थान से हाथ धोना पड़ा। मोदी जी मैं हिंदुओं को बांटने की बात नहीं कर रहा लेकिन एक बात स्पष्ट है कि दलित समाज मायावती को छोड़ कर आपको कभी वोट नहीं करेगा, यादव समाज समाजवादी पार्टी को नहीं छोड़ सकता। बस एक सवर्ण समाज है जो आपकी राजनीतिक बैसाखी है, इसलिए सवर्ण समाज को घर की मुर्गी समझ कर अपनी इस बैसाखी को मत तोड़िए नही ंतो आप बेसहारा हो जाएंगे और हम हिंदू ये कतई नहीं चाहते। इसलिए दूध देने वाली गाय को लात मत मारिए, इसका दूध पीजिए और सियासी अखाड़े में अंगद की तरह मजबूती से पैर जमाए रहिए। नेक्स्ट आर्टियलकाश! हिन्द का हर मुसलमान हनीफ जैसा हो जाए, एक सच्चे हिंदुस्तानी मुसलमान की अनछुई कहानी, पढ़ियेगा जरूर काश! हिन्द का हर मुसलमान हनीफ जैसा हो जाए, एक सच्चे हिंदुस्तानी मुसलमान की अनछुई कहानी, पढ़ियेगा जरूर केंद्रीय कार्यालय : १३४ ए, पॉकेट.ए, मयूर विहार फेज -२ संपर्क सूत्र : ९५४०३९१८३८ , ८१७८२१४८८२
भारतीय भाषा अभियान: किरीटविषाणु अर्थात् कोरोनावायरस कोरोना लैटिन भाषा का शब्द है जिसे सबसे पहले सोलहवीं सदी के मध्य में प्रयोग किया गया था, इसका अर्थ मुकुट होता है। वायरस शब्द भी लैटिन शब्द है जो वैनम (वेनोम) से आया है और वैनम का अर्थ विष होता है इसलिए हिन्दी में वायरस के लिए विषाणु सर्वथा उपयुक्त व सरल पर्यायवाची है। वर्तमान में जो वैश्विक महामारी फैली है, वह एक विषाणु (विष+अणु) के कारण फैल रही है, यह जीवाणु, कीटाणु की भाँति ही जीव है और इस विषाणु का रूपाकार भी कुछ-कुछ लैटिन देशों में सोलहवीं सदी में उपयोग किए गए मुकुट से मिलता जुलता है। १९६८ में वैज्ञानिकों ने सबसे पहले इस विषाणु को सूक्ष्मदर्शी यंत्र पर देखा तो यह सौर किरीट के जैसा दिखाई दिया, सूर्य ग्रहण के समय सूर्य का किरीट निर्मित होता है। यथा- कोरोना का क प्रथमाक्षर लेकर हिन्दी में मुकुट के लिए किरीट पर्यायवाची उपलब्ध है, अतः भारतीय भाषाओं के विद्वतजनों ने कोरोनावायरस के लिए किरीटविषाणु पर्याय सुझाया है। किरीटविषाणु विषाणुओं का एक परिवार है। कोविड-१९ उनमें सबसे नया है, इसे सार्स कॉव-२ भी कहते हैं। कोविड-१९ नाम भी रोचक है, इस रोग का पहला प्रकरण चीन में 20१९ में मिला था, और यह किरीटविषाणु परिवार का सबसे नया विषाणु है इसलिए वर्ष का द्योतक १९ है और अंग्रेजी के को-रोना-वि-रूस ड-इसीज का संक्षेप कोविड हो गया। इस हिसाब से हम भी इसे किरीट-विषाणु-रोग अर्थात् किविरो कह सकते हैं, ठीक कहा न? प्रस्तुतकर्ता प्रवीण कुमार जैन पर ००:५९
छात्र संगठन दुमका द्वारा मोटरसाइकिल निकल सडक दुर्घटना को लेकर किया जागरूक | ग्राम समाचार : ग्राम समाचार झारखंड / ताजा समाचार / दुमका / राज्य | बाय कैलाश शर्मा, ग्राम समाचार। छात्र संगठन दुमका द्वारा मोटरसाइकिल निकल सडक दुर्घटना को लेकर किया जागरूक ग्राम समाचार (दुमका) बुधवार को चेतना छात्र संगठन दुमका द्वारा मोटरसाइकिल चेतना रैली का आयोजन नगर प्रमुख यसराज वर्मा महासचिव मोहम्मद आबू अंसारी जिला खेल कूद प्रभारी एवं विनय सिंह के संयुक्त नेतृत्व में किया गया। कार्यक्रम के सफल आयोजन में जिला प्रमुख अशरफ कमाल , जिला महासचिव विशाल सिंह , संजू ठाकुर, प्रान्त खेलकूद समन्वयक प्रशांत सिंह का महत्वपूर्ण भूमिका रही। मोटरसाइकिल रैली को सिधू कान्हू मुर्मू विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ० मनोरंजन प्रसाद सिंह , जिला परिवाहन पदाधिकारी डॉ० सुदेश कुमार, रजिस्ट्रार डॉ० ध्रुव नारायण सिंह,विश्वविद्यालय संगठन के अध्यक्ष डॉ सुधांशु शेखर एवं केंद्रीय प्रमुख हिमांशु मिश्रा ने हरी झण्डी दिखाकर रवाना किया। कार्यक्रम में बतौर मुख्य अतिथि डॉ० सिन्हा ने कहा कि सड़क सुरक्षा को ध्यान में रखकर छात्र चेतना संगठन द्वारा इस प्रकार के कार्यक्रम का आयोजन करना युवाओ के प्रति ओर समाज के प्रति संगठन की संवेदनशीलता को प्रदर्शित करता है। युवा मोटरसाइकिल चलाते समय पूरी तरह से सड़क सुरक्षा मानकों का ख्याल रखे। कार्यक्रम में जिला परिवहन पदाधिकारी डॉ० सुदेश ने कहा कि सीसीएस के द्वारा सड़क सुरक्षा के मद्देनजर जनजागृति के लिए बाइक चेतना रैली का आयोजन बहुत ही सराहनीय कदम है। सभी व्यक्ति दो पहिये वाहन चलाते वक्त हेलमेट का प्रयोग अवश्य करे । हेलमेट पहनने से ९०% से अधिक दुर्घंटनाओ को कम किया जा सकता है। माननीय सरवोच्च न्यायालय का गाइड लाइन में रोड शेफटी के लिए दो पहिये वाहन चलाको को हेलमेट पहनने का निर्देश दिया गया है। डॉ सुदेश कुमार ने कहा कि छात्र चेतना संगठन से भविष्य में इससे भी बड़ी जागरूकता रैली आयोजन की उम्मीद है जिसमें जिला परिवहन कार्यालय का भी भूमिका महत्वपूर्ण रहेगा। कार्यक्रम को संबोधित करते हुए संगठन प्रमुख हिमांशु मिश्रा ने कहा कि अखबार एवं सोशल मीडिया में मोटरसायकिल दुर्घटना की खबर मिलते रहती है जो अत्यंत ही दुर्भाग्यपूर्ण है संगठन द्वारा युवाओं को संदेश देने के लिए मोटरसाइकिल चलाते वक्त आप पूरी तरह सुरक्षा मानकों का ख्याल रखे, किसी भी कीमत पर बिना हेलमेट के मोटरसाइकिल की सवारी न करे , ट्रैफिक नियम का अनुपालन करे गती सीमा ४० से ५० किलोमीटर प्रतिघंटा के रफ्तार से अधिक न हो जबकि घनी आबादी में गती सीमा २० से ३० किलोमीटर प्रति घंटा हो इससे अधिक नही । घर मे माँ पिता पूरा परिवार आपके इंतिजार में रहता है। इस बात को ध्यान रखे। कार्यक्रम में जिला परिवहन कार्यालय के प्रतिनिधि अभिषेक सिंह, बाइक होंडा शोरूम के प्रतिनिधि गुड्डू अग्रवाल, एवं केंद्रीय कार्यसमिति सदस्य संजू ठाकुर , संतोष पाल , प्रमंडलीय कोष प्रमुख प्रिंस राज वर्मा , राकेश मिश्रा , सोहन सिंह, राहुल कुमार, अमन कुमार , रितेश झा, मुकेश सिंह , संतोष कुमार , राजीव कुमार , मुकेश कुमार, संजीव कुमार, जीतन हरि, रंजन कापरी, रविन्द्र यादव ,लल्ला , भूदेव यादव , सौरभ दे, कुनाल कुमार, बावन खाँ, विक्की मिश्रा, सूरज मिश्रा, भास्कर कुमार, आयुष कुमार, सहित दर्जनों कार्यकर्ता उपस्थित थे एवं धन्यवाद ज्ञापन संथाल परगना प्रभारी राजीव मिश्रा ने किया।
टी१० लीग के पांचवें मैच में मराठा अरबीस का सामना पंजाबी लीजेंड्स से होगा। दोनों ही टीमें टूर्नामेंट का अपना पहला मैच खेलनें मैदान पर उतरेंगी। ऐसे में दोनों की चाहत जीत से आगाज करने की होगी। दोनों ही टीमों के पास स्टार खिलाड़ियों की भरमार है। जिससें देखते हुए एक शानदार मैच होने की उम्मीद की जा रही है। मराठा अरबीस की टीम की बात की जाए तो टीम कागज पर काफी मजबूत नजर आती है। टीम के पास काफी मैच विनर मौजूद है। जो मैच का रुख अकेले दम पर पलटने का माद्दा रखते है। टीम की बल्लेबाजी की बात करें तो टीम के पास अलेक्स हेल्स , हजरतुल्ला ज़जाई , कामरन अकमल जैसे तूफानी बल्लेबाज मौजूद है। जो किसी भी गेंदबाजी की धज्जियां उड़ाने का दम रखते है। वही टीम के पास द्वेन ब्राओ, फॉल्कनेर के रुप में दो बेहतरीन ऑलराउंडर भी मौजूद है। जो बल्ले और गेंद दोनों से अहम योगदान दे सकते है। वही टीम की गेंदबाजी की बात करें तो टीम के पास खुद कप्तान रशीद खान जैसे वर्ल्ड क्लास गेंदबाज मौजूद है। वही अमीर हयत, ज़हूर खान कप्तान का साथ देते नजर आएंगे । टीम की गेंदबाजी ऑलराउंडर के होने से टीम काफी संतुलित नजर आ रही है। वही दूसरी तरफ पंजाबी लीजेंड्स की टीम के पास एक से बढ़ कर एक घुरंधर खिलाड़ियों की भरमार है। टीम के पास जहां बल्लेबाजी में लुके रोंची, ए लुइस, उमर अकमल जैसे दमदार बल्लेबाज मौजूद है। तो वही गेंदबाजी में टीम के पास प्लंकीत, अनवर अली, क्रिस जॉर्डन, प्रवीण कुमार जैसे वर्ल्ड क्लास गेंदबाज भी शामिल है। टीम अपने गेदबाजी के चलते काफी मजबूत नजर आ रही है। शोएब मालिक ने टूर्नामेंट से अपना नाम वापिस ले लिया है। वो इस टूर्नामेंट में खेलते नजर नही आएंगे।
ये है वर्ल्ड की टॉप ५ स्मार्टफोन कम्पनीज न्यूज इन हिन्दी ये है वर्ल्ड की टॉप ५ स्मार्टफोन कम्पनीज प्रेषित समय :१८:१८:५1 प्म / फ्री, अप्र २१स्त, २०१७ ट्वीट आज कल मोबाइल कम्पनी आए दिन नए-नए स्मार्टफ़ोन लॉन्च करती जा रही है. ऐसे में अब यह जान पाना बहुत मुश्किल हो रहा है. कौन सा स्मार्टफ़ोन हमारे लिए अच्छा, इसी तरफ की बात को ध्यान में रखकर आज हम अपने सामने पांच सबसे बड़ी स्मार्टफोन कंपनियों के बारे में बताने जा रहे है. जो सबसे ज्यादा भरोसेमंद हैं. आपोल- अमरीका की मल्टीनेशनल टेक्नोलॉजी कंपनी एप्पल ने आईफोन ७ और आईफोन ७ प्लस की लॉन्चिंग के बाद दुनिया की नंबर १ स्मार्टफोन निर्माता कंपनी बन गई है. लेकिन कंपनी ने अपने दोनो आईफोन में कुछ भी चेंज नहीं किया है. इन स्मार्टफोनों से अच्छा रिसपॉन्स मिलने से अब कंपनी जल्द ही अपना एक और नया आईफोन लॉन्च करने वाली है. जिस आईफोन का नाम आईफोन एडिशन या आईफोन एक्स होगा. सैमसंग- कोरियाई स्मार्टफोन निर्माता कंपनी सैमसंग ने २९ मार्च को अपना फ्लैगशिप स्मार्टफोन गैलेक्सी एस८ और गैलेक्सी एस८ प्लस लॉन्च कर दिया है, इन दोनों में फोन्स में शानदर फीचर है साथ ही इनमे कई बदलाव भी किए गए है. ओनेप्लस- चीन मोबाइल फोन निर्माता कंपनी वनप्लस को अच्छा रिसपॉन्स मिल रहा है. २०१६ में लॉन्च वनप्लस ३ की सफलता के बाद अब कंपनी ने इस साल वनप्लस ३टी लॉन्च कर चुकी है. इस वनप्लस के ज्यादातर स्मार्टफोन मिड सेगमेंट के होते हैं. २०१६ में चीन की स्मार्टफोन निर्माता कंपनी हुवावे को अच्छा रिसपॉन्स मिला है. इसके बाद कंपनी कई स्मार्टफोन लॉन्च कर रही हैं. ऑप्पो- चाइनीज स्मार्टफोन निर्माता कंपनी ओपो को भी काफी जल्दी अच्छा रिसपॉन्स मिला है. यह स्मार्टफोन अच्छे कैमरे क्वॉलिटी के लिए जाना जाता है. एशियाई और भारत मेें इस स्मार्टफोन को अच्छी ग्रोथ मिल रही है. टीप: यह केवल प्रारम्भिक जानकारी है.अधिकृत जानकारी संबंधित कंपनी या उनके प्रतिनिधि से ही प्राप्त करें.
| अगस्त १५ , २०१८ , २०:१४ इस्ट पूरा देश ७२ वां स्वतंत्रता दिवस मना रहा है। राजधानी दिल्ली के बाल भवन में स्वतंत्रता दिवस के मौके पर झंडा फहराया गया। ये तिरंगा फ्लैग फाउंडेशन ऑफ इंडिया के तत्वाधान में १०५ फीट ऊंचे विशालकाय ध्वज दंड में स्मारकीय तिरंगा फहराया गया। केंद्रीय मंत्री बीरेंद्र सिंह ने इस १०५ फ़ीट ऊँचे तिरंगे को देश को समर्पित किया। फ्लैग फाउंडेशन ऑफ इंडिया के चेयरमैन नवीन जिन्दल और बाल भवन की चेयरपर्सन शालू जिन्दल ने भी तिरंगे को सलामी दी। इस ऐतिहासिक मौके पर केंद्रीय मंत्री बीरेंद्र सिंह ने कहा कि 'मुझे यकीन है कि ऊंचाई पर फहरा रहे तिरंगे से देशवासियों के अंदर राष्ट्रपेम का ज्वार उमड़ेगा और हमें राष्ट्र सेवा की प्रेरणा मिलेगी'। फ्लैग फाउंडेशन ऑफ इंडिया के तहत पूरे देश में अब तक ७० स्मारकीय तिरंगे फहराये गए हैं। सभी स्मारकीय तिरंगा १०५ फीट ऊंचे विशालकाय ध्वज दंड में फहराया जाता है जो स्टेनलेस स्टील का होता है। तिरंगे की आजादी का संघर्ष
सोनभद्र कांड पर गर्म हुई सियासत, प्रियंका गांधी बोलीं-बिना मिले नहीं जाऊंगी इससे पहले कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने आरोप लगाया था कि चुनार गेस्टहाउस में बिजली-पानी और खाने की व्यवस्था नहीं की गई है. उनका कहना है कि प्रियंका गांधी को गिरफ्तार करने के बाद गेस्टहाउस की बिजली काट दी गई है. प्रियंका गांधी बोलीं-बिना मिले नहीं जाऊंगी उत्तर प्रदेश स्थित सोनभद्र में १० लोगों की हत्या के बाद उपजे विवाद के बीच शुक्रवार को कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वहां पहुंची. हालांकि, पुलिस ने उन्हें जाने से रोक दिया और हिरासत में ले लिया. फिलहाल चुनार गेस्टहाउस में रुकीं प्रियंका ने शुक्रवार रात एक के बाद एक ट्वीट करके कहा है कि 'मैं गरीब आदिवासियों की व्यथा जानने आई हूं. उत्तर प्रदेश प्रशासन ने पिछले नौ घंटे से मुझे गिरफ्तार करके किले में रखा हुआ है. प्रशासन कह रहा है कि मुझे ५०,००० की जमानत देनी है, नहीं तो मुझे १४ दिन जेल की सजा दी जाएगी.' प्रियंका ने यह भी कहा कि पुलिसवाले मुझे सोनभद्र नहीं जाने देंगे, ऐसा उन्हें 'ऊपर से ऑर्डर' है. उन्होंने आगे लिखा, 'मैंने ना कोई कानून तोड़ा और ना ही कोई अपराध किया. प्रशासन चाहे तो मैं अकेली उनके साथ पीड़ित परिवारों से मिलने गांव जाना चाहती हूं. इसके बावजूद सरकार ने तमाशा किया है. मैं इस संदर्भ में जमानत को अनैतिक मानती हूं और इसे देने को तैयार नहीं हूं. मेरी साफ मांग है कि मुझे पीड़ित आदिवासियों से मिलने दिया जाए. सरकार को जो उचित लगे वह करे. अगर सरकार मुझे पीड़ितों से मिलने के कारण जेल में डालना चाहे तो मैं पूरी तरह से तैयार हूं.' इससे पहले कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने आरोप लगाया था कि चुनार गेस्टहाउस में बिजली-पानी और खाने की व्यवस्था नहीं की गई है. उनका कहना है कि प्रियंका गांधी को गिरफ्तार करने के बाद गेस्टहाउस की बिजली काट दी गई है. प्रियंका समेत सभी लोग गर्मी और उमस से बेहाल हैं. उधर, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इस पूरे विवाद के लिए कांग्रेस सरकार को जिम्मेदार ठहराया है. उन्होंने कहा कि कांग्रेस के शासन काल के दौरान वनवासियों की जमीन को एक सोसायटी के नाम कर दिया गया. सीएम ने कहा कि एक तीन सदस्यीय जांच कमिटी बनाई गई है जो १० दिन के अंदर अपनी रिपोर्ट देगी. प्रियंका की हिरासत पर बोले रॉबर्ट- यह असंवैधानिक, लोकतंत्र को न बनाएं तानाशाही
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कंधे की चोट से उबरने वाले केदार जाधव की नेट पर सक्रिय भागीदारी भारतीय टीम के लिए अच्छा संकेत हैं, हालांकि दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ विश्व कप के शुरूआती मैच में उनका खेलना संदिग्ध है। भारतीय टीम प्रबंधन निश्चित रूप से राहत महसूस कर रहा होगा क्योंकि इस ३३ साल के खिलाड़ी ने भारत के यहां पहुंचने के बाद पूरे अभ्यास सत्र में हिस्सा लिया। जाधव ने सत्र के दौरान बिना किसी परेशानी के बल्लेबाजी की जो पूर्ण फिटनेस हासिल करने के संकेत हैं। आईपीएल में हैमस्ट्रिंग चोट के बाद वह नेट में गेंदबाजी नहीं कर रहे थे, लेकिन उन्होंने यह भी करना शुरू कर दिया है। यह हालांकि अभी स्पष्ट नहीं हुआ है कि जाधव बुधवार को दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ खेलेंगे या नहीं। उनकी फिटनेस चिंता का विषय बनी हुई है क्योंकि उनके अगले साढ़े छह हफ्तों के दौरान अहम भूमिका निभाने की उम्मीद है। आईपीएल राउंड रोबिन के अंतिम मैच के दौरान उनके कंधे में चोट लग गयी थी और वह टूर्नमेंट के अंतिम चरण में नहीं खेले थे। वह विश्व कप की तैयारियों के लिये भारत के दो अभ्यास मैच में भी नहीं खेल पाए थे। कप्तान विराट कोहली, जाधव, हार्दिक पंड्या, जसप्रीत बुमराह, लोकेश राहुल, भुवनेश्वर कुमार और विजय शंकर सहित ज्यादातर खिलाड़ियों ने जिम में भी ट्रेनिंग की।
होमदुनिया सेतुर्की के खिलाफ बहुत कड़ा रुख अपना रहा है अमेरिका: डोनाल्ड ट्रम्प ट्रम्प ने व्हाइट हाउस में कहा कि उनका प्रशासन अमेरिकी जवानों को वापस घर लाना चाहता है.अमेरिकी विदेश मंत्री माइक पोम्पिओ और राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार रॉबर्ट ओब्रायन समेत प्रतिनिधिमंडल १७ अक्टूबर को तुर्की के राष्ट्रपति रजब तैयब एर्दोआन (रिसेप तय्यिप एरडोन) से मुलाकात करने जाएगा. अमेरिका के उपराष्ट्रपति माइक पेंस (मैक पेंस) के नेतृत्व में अमेरिकी प्रतिनिधिमंडल के उत्तरी सीरिया में सैन्य हमले को रोकने का तुर्की पर दबाव बनाने के लिए अंकारा रवाना होने वाले हैं. इसी बीच अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प (डोनाल्ड ट्रम्प) ने कहा कि अमेरिका ने तुर्की के खिलाफ बहुत सख्त'' रुख अपनाया है और उस पर कड़े से कड़े प्रतिबंध लगाए हैं. ट्रम्प ने व्हाइट हाउस में कहा कि उनका प्रशासन अमेरिकी जवानों को वापस घर लाना चाहता है.अमेरिकी विदेश मंत्री माइक पोम्पिओ और राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार रॉबर्ट ओ'ब्रायन समेत प्रतिनिधिमंडल १७ अक्टूबर को तुर्की के राष्ट्रपति रजब तैयब एर्दोआन (रिसेप तय्यिप एरडोन) से मुलाकात करने जाएगा. इस बीच एर्दोआन ने उत्तरी सीरिया में संघर्ष विराम के अमेरिका के प्रस्ताव को खारिज करते हुए कहा कि वह अमेरिकी प्रतिबंधों को लेकर चिंतित नहीं है. दैनिक समाचार पत्र हुर्रियत' ने एर्दोआन से हवाले से कहा, वे चाहते हैं कि हम संघर्ष विराम घोषित करें. हम संघर्ष विराम की घोषणा नहीं कर सकते.' सीरिया से अपने बलों को वापस बुलाने के अमेरिका के फैसले के बाद पिछले सप्ताह से शुरू हुए तुर्की हमलों का मकसद कुर्द नीत सीरियन डेमोक्रेटिक फोर्सेस' एसडीएफ को सीमा क्षेत्रों से खदेड़ना है. तुर्की सरकार इलाके में सुरक्षित क्षेत्र'' बनाना चाहती है, जहां वह २० लाख सीरियाई शरणार्थियों को पुन: बसा सके जो इस समय तुर्की में हैं. ट्रम्प ने कहा, माइक (पेंस) एक बड़ी यात्रा की तैयारी कर रहे हैं. वह बुधवार को रवाना होंगे.' व्हाइट हाउस ने कहा कि क्षेत्र में जारी हिंसा आईएसआईएस को हराओ' मुहिम को बहुत कमजोर कर रही है, आम नागरिकों एवं धार्मिक अल्पसंख्यकों और पूरे क्षेत्र की सुरक्षा को खतरे में डाल रही है. उसने कहा कि प्रशासन क्षेत्र और आम नागरिकों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए संकल्पबद्ध है. सीरिया से बलों की वापसी को लेकर ट्रम्प की आलोचना हो रही है. इस मामले पर ट्रम्प ने कहा, हम कई वर्षों से वहां मौजूद अपने जवानों को वापस लाना चाहते हैं, वह विश्व में सबसे बड़े योद्धा हैं.'' उन्होंने कहा, वे पुलिस बल नहीं हैं, लेकिन उनका काम कर रहे हैं. वे अलग तरह का बल हैं. हम अपने जवानों को वापस लाना चाहते हैं और हम तुर्की एवं कई अन्य के खिलाफ बहुत कड़ा रुख अपना रहे हैं.'' व्हाइट हाउस ने कहा कि जब तक समाधान नहीं निकलता है तब तक पेंस तुर्की पर आर्थिक प्रतिबंध लगाने की ट्रम्प की प्रतिबद्धता को दोहराएंगे. ट्रम्प ने कहा, उन्हें शांति एवं सुरक्षा सुनिश्चित करनी होगी और हम देखेंगे कि प्रतिनिधिमंडल के साथ क्या होता है. हम संघर्षविराम की मांग कर रहे हैं.'' उन्होंने कहा, हमने सबसे कड़े प्रतिबंध लगाए हैं जिनकी आप कल्पना कर सकते हैं, लेकिन यदि उन पर असर नहीं होता है तो हम इस्पात पर शुल्क समेत और प्रतिबंध लगाएंगे. वह अमेरिका में बहुत इस्पात भेजते है. वे इससे बहुत धन कमाते है. वे बहुत अधिक धन नहीं कमा पाएंगे.'' ट्रम्प ने तुर्की के मंत्रियों और वरिष्ठ अधिकारियों पर प्रतिबंध लगाए हैं, उसने इस्पात शुल्क बढ़ाने एवं १०० अरब डॉलर के व्यापार समझौते पर वार्ता समाप्त करने का प्रस्ताव रखा है. इस बीच ट्रम्प के सीरिया में फैसले के विरोध में कांग्रेस में द्विसदनीय, द्विदलीय प्रस्ताव पेश किया गया.
नव रजिस्ट्रेशन वाले ऑप्शन का जैसे ही आप चयन करेंगे सबसे पहले आपको उस किसान का आधार कार्ड नंबर दर्ज करना होगा जिनका आप प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना के लिए आवेदन करना चाहते हैं । अगर किसान का ब्यौरा पीएम किसान के तहत रजिस्टर्ड होता है तो वहां पर आपको इसकी जानकारी दिख जाती है ब्यौरा नहीं रजिस्टर्ड होने की स्थिति में आपको नया आवेदन करने को बताया जाएगा । नया आवेदन करे पर आपको क्लिक करना होगा । अगर आपके प्म किसन आप्लिकेशन और आधार कार्ड में नाम अलगअलग होता है तो आप इसे ऑनलाइन अपडेट कर सकते हैं चलिए इसकी प्रक्रिया जान लेते हैं । नोट :- उम्मीद करता हूं प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना से संबंधित सारी जानकारी आप लोगों को पता चल गई होगी |
सुशांत की मौत पर ट्वीट कर ट्रोल हुईं सोनम, ट्रोलर्स ने कहा- हो कौन तुम बस अनिल कपूर की बेटी लाटेस्टन्यूज१ सुशांत की मौत पर ट्वीट कर ट्रोल हुईं सोनम, ट्रोलर्स ने कहा- हो कौन तुम बस अनिल कपूर की बेटी सुशांत सिंह राजपूत की आत्महत्या ने सभी को हैरानी में डाला हुआ है. ऐसे में सभी सुशांत के इतना बड़ा कदम उठाए जाने के पीछे की वजह जानना चाहते हैं. वहीं अब तक सुशांत के घर से कोई सुसाइड नोट बरामद नहीं हुआ है. बीते सोमवार को उनका अंतिम संस्कार मुंबई के विले पार्ले में किया गया जहां परिवार समेत इंडस्ट्री के कुछ गिने चुने एक्टर्स भी पहुंचे थे. ऐसे में अब सोनम कपूर ने सुशांत सिंह राजपूत की आत्महत्या को लेकर एक ट्वीट किया है जो वायरल हो रहा है. जी दरअसल सोनम ने अपने इस ट्वीट में लिखा- किसी की मौत के लिए उसकी गर्लफ्रेंड, एक्स गर्लफ्रेंड, परिवार और कलीग को दोषी ठहराना अज्ञानता है. वहीं सोनम ने उन लोगों पर अपना गुस्सा जाहिर करते हुए लिखा था जो सुशांत की खुदकुशी के लिए उनकी गर्लफ्रेंड और एक्स गर्लफ्रेंड को जिम्मेदार बता रहे हैं. वहीं सोनम के इस ट्वीट के बाद से वह चर्चाओं में आ चुकीं हैं और जमकर ट्रोलिंग का शिकार भी हो रहीं हैं. इस दौरान कई यूजर्स ने सोनम को नेपोटिज्म का मुद्दा उठाकर ट्रोल करना शुरू कर दिया. इसमें एक यूजर ने लिखा- हैलो मैडम जी, मैं आपको याद दिलाना चाहता हूं कि आपने अभी तक १२ फिल्में की हैं, इसमें आपने १० के लिए अवॉर्ड भी जीत लिया. नीरजा के अलावा आप एक भी अवॉर्ड डिजर्व नहीं करती थीं. वहीं एक यूजर ने लिखा- हो कौन तुम, अनिल कपूर की बेटी होने से ज्यादा तुम्हारी क्या पहचान है? यहां कोई किसी पर आरोप नहीं लगा रहा. हमें परेशानी है तो फिल्मों में भाई-भतीजावाद से. अनिल कपूर की वजह से तुम्हें फिल्में मिलती हैं. आप सभी को हम यह भी बता दें कि सुशांत सिंह राजपूत ने रविवार को अपने घर पर फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली और उनकी मौत की खबर से हर कोई हैरान है. इसी के साथ ऐसी खबरें हैं कि वह पिछले छह महीने से डिप्रेशन में थे और उन्होंने अपनी दवाईयां लेनी बंद कर दी थी. पति से उम्र में बड़ी हैं ये अभिनेत्रियां, दूसरी का नाम जानकर चौंक जाएंगे आप राजस्थान: सोमवार से होगा मानसून सक्रिय, इन जिलों में हो सकती है भारी बारिश, अलर्ट जारी प्रियंका चोपड़ा ने पहनी ऐसी अजीब ड्रेस, देख कर रह जाएंगे सन्न बिग बॉस १३: शहनाज गिल करना चाहती हैं सिद्धार्थ शुक्ला से शादी! पिता ने दिया बड़ा बयान
डेविड वार्नर ने कहा- भारत के खिलाफ बिना दर्शकों के खेलना अजीब सा होगा | लाटेस्ली हिन्दी ऑस्ट्रेलिया के क्रिकेटर डेविड वार्नर ने कहा कि उनकी और भारतीय टीम के आमने-सामने होने पर ऐसी कोई वजह नहीं होगी कि उनकी टीम विराट कोहली को निशाना बनाए. भारत को इसी साल के अंत में आस्ट्रेलिया में चार मैचों की टेस्ट सीरीज खेलनी है. गाबा, एडिलेड ओवल, एमसीजी और एससीजी में दोनों टीमों को चार टेस्ट मैचों की सीरीज खेलनी है. आस्ट्रेलिया के विकेटकीपर मैथ्यू वेड ने हाल ही में कहा था कि वह कोहली के साथ छींटाकशी में नहीं पड़ेंगे. अब वार्नर ने भी ऐसी ही बात कही है. वार्नर ने इंडिया टुडे से बात करते हुए कहा, "विराट कोहली ऐसे खिलाड़ी हैं जिनसे आप पंगा नहीं ले सकते, उनसे पंगा लेना उल्टे आप के लिए ही समस्या बन सकता है." वार्नर ने साथ ही बिना दर्शकों के खाली स्टेडियम में खेलने के बारे में भी बात की. वार्नर ने कहा, "भारत के खिलाफ बिना दर्शकों के खेलना अजीब सा लगेगा." उन्होंने कहा, "पिछली बार हम खराब नहीं खेले थे लेकिन हम एक अच्छी टीम से हार गए थे. उनकी गेंदबाजी शानदार थी." बाएं हाथ के बल्लेबाज ने कहा, "अब, भारत के पास अच्छा बल्लेबाजी क्रम है और हमारे गेंदबाज अच्छे हैं और भारतीय दर्शक इसके लिए उतावले हो रहे होंगे." यह भी पढ़ें- तिक्टोक पर भारतीय डांसर का वीडियो देख दंग रह गए डेविड वार्नर, इंस्टाग्राम पर किया शेयर वार्नर ने साथ ही १३वें आईपीएल सीजन में खेलने की भी इच्छा जाहिर की है. उन्होंने कहा, "ऐसी चर्चा है कि टी-२० विश्व कप स्थगित हो जाए क्योंकि इसमें हिस्सा लेने वाले हर देश को संभालना एक चुनौती होगी और साथ ही हमें १४ दिन के लिए क्वारंटाइन भी करना होगा." उन्होंने कहा, "हम कोविड-१९ को रोकने के लिए पाबंदियां लग रहे हैं. यह पाबंदियां आस्ट्रेलियाई सरकार लगा रही है. हम इन नियमों का पालन कर रहे हैं और आईसीसी के फैसले का इंतजार कर रहे हैं." उन्होंने कहा, "अगर विश्व कप नहीं होता है तो मैं इस बात को लेकर आश्वस्त और सकारात्मक हूं कि हम वहां आकर आईपीएल खेल सकेंगे, अगर यह विश्व कप की जगह होता है तो."