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देश, दुनिया, महानगर, खेल, आर्थिक और बॉलीवुड में क्या कुछ हुआ. जानने के लिए यहां पढ़ें समय के साथ साथ खबरों का लाइव अपडेशन.
11:55 PM करुणानिधि के अंतिम संस्कार के मामले पर मद्रास हाईकोर्ट में सुनवाई जारी
11:34 PM पश्चिम बंगाल की सीएम ममता बनर्जी भी गोपालपुरम पहुंचीं
11:30 PM करुणानिधि के आवास गोपालपुरम पहुंचे रजनीकांत, DMK समर्थक हुए बेकाबू
11:24 PM करुणानिधि समाधि केस: सीनियर एडवोकेट सीएस वैद्यनाथन तमिलनाडु सरकार का पक्ष रखेंगे
11:22 PM करुणानिधि को मरीना में दफनाने के लिए मद्रास हाई कोर्ट में सुनवाई शुरू
11:04 PM करुणानिधि को श्रद्धांजलि देने चेन्नई पहुंची पश्चिम बंगाल की सीएम ममता बनर्जी
10:50 PM करुणानिधि के निधन पर बिहार सरकार ने 2 दिन का राजकीय शोक घोषित किया
10:36 PM चेन्नई: करुणानिधि के घर के बाहर DMK समर्थकों का जमावड़ा
Chennai: DMK workers and supporters gather outside
#Karunanidhi
's Gopalapuram's residence after the DMK Chief's mortal remains reach the house
pic.twitter.com/60bz3vX1rP
— ANI (@ANI)
August 7, 2018
10:12 PM चेन्नईः DMK की याचिका पर रात कुछ देर में सुनवाई शुरू करेगा मद्रास हाईकोर्ट
09:54 PM देवरिया बालिका गृह केस में होगी पुलिस की भूमिका की जांच: CM योगी
09:42 PM देवरिया बालिका गृह केस पर बोले सीएम योगी, CBI जांच की करेंगे सिफारिश
09:37 PM देवरिया मामले की जांच के लिए SIT का गठन किया जा रहा है: CM योगी
09:37 PM चेन्नईः DMK की याचिका पर रात 10:30 बजे सुनवाई करेगा हाईकोर्ट
09:35 PM DMK तमिलनाडु सरकार के खिलाफ मद्रास हाईकोर्ट पहुंची
09:25 PM चेन्नईः मरीना बीच पर करुणानिधि के अंतिम संस्कार को जगह नहीं देने पर DMK नाराज
09:08 PM चेन्नई: कावेरी अस्पताल से करुणानिधि का शव लेकर निकली एंबुलेंस
Chennai: Ambulance carrying
#Karunanidhi
's mortal remains leaves from Kauvery Hospital for his Gopalapuram residence
pic.twitter.com/22XQlBva0Z
— ANI (@ANI)
August 7, 2018
09:06 PM करुणानिधि को श्रद्धांजलि देने कल चेन्नई जाएंगे तेजस्वी यादव
09:05 PM UP: स्वास्थ्य मंत्री सिद्धार्थनाथ सिंह की तबीयत खराब, लोहिया संस्थान में भर्ती
08:47 PM चेन्नई: करुणानिधि के अंतिम संस्कार की जगह पर DMK समर्थकों का हंगामा
08:36 PM J-K: त्राल में आतंकियों ने एक पुलिसकर्मी को मारी गोली, हालत स्थिर
J&K Policeman Ashiq Ahmed Lone shot at by terrorists in Tral. He has been shifted to hospital where his condition is said to be stable
— ANI (@ANI)
August 7, 2018
08:16 PM पीएम मोदी के साथ कल निर्मला सीतारमन भी जा सकती हैं चेन्नई
08:10 PM करुणानिधि को श्रद्धांजलि देने कल चेन्नई जाएंगे कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी
07:53 PM दिल्ली: रात 9:30 बजे अमित शाह से मिलेंगे सुखबीर सिंह बादल
07:50 PM चेन्नई: एमके स्टालिन ने कार्यकर्ताओं से शांति बनाए रखने की अपील की
07:36 PM करुणानिधि को श्रद्धांजलि देने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी कल चेन्नई जाएंगे
07:33 PM करुणानिधि के निधन पर बोलीं ममता बनर्जी: देश ने महान बेटा खोया है
07:29 PM करुणानिधि के अंतिम दर्शन करने कल चेन्नई जाएंगे पीएम मोदी
07:14 PM करुणानिधि के निधन पर बोले रजनीकांत- ये काला दिवस कभी नहीं भूल पाऊंगा
Today is a black day in my life, one which I can never forget as I lost my
#Kalaignar
. I pray for his soul: Rajinikanth on
#Karunanidhi
(file pic)
pic.twitter.com/R8ociRQSsN
— ANI (@ANI)
August 7, 2018
07:08 PM अरविंद केजरीवाल ने करुणानिधि के निधन पर जताया दुख
07:06 PM एम करुणानिधि के निधन पर राष्ट्रपति कोविंद ने शोक व्यक्त किया
श्री एम करुणानिधि के निधन के बारे में सुनकर दुख हुआ। "कलैनार" के नाम से लोकप्रिय वह एक सुदृढ़ विरासत छोड़ कर जा रहे हैं जिसकी बराबरी सार्वजनिक जीवन में कम मिलती है। उनके परिवार के प्रति और लाखों चाहने वालों के प्रति मैं अपनी शोक संवेदना व्यक्त करता हूँ – राष्ट्रपति कोविन्द
— President of India (@rashtrapatibhvn)
August 7, 2018
07:04 PM करुणानिधि के निधन के बाद तमिलनाडु में 7 दिन के राजकीय शोक का ऐलान
07:03 PM करुणानिधि का निधन, कल चेन्नई जाएंगे अरविंद केजरीवाल
07:00 PM
अंजना ओम कश्यप से LIVE चैट के लिए यहां क्लिक करें
06:56 PM एम. करुणानिधि के निधन पर पीएम मोदी ने जताया दुख
Deeply saddened by passing away of Kalaignar Karunanidhi. He was one of the senior most leaders of India. We have lost a deep-rooted mass leader, prolific thinker, accomplished writer and a stalwart whose life was devoted to the welfare of the poor and the marginalised: PM Modi
pic.twitter.com/4fw9KLhT16
— ANI (@ANI)
August 7, 2018
06:47 PM चेन्नई: एम. करुणानिधि ने शाम 6:10 बजे ली आखिरी सांस
06:43 PM तमिलनाडु के पूर्व सीएम एम. करुणानिधि का निधन
#FLASH
M Karunanidhi passes away, Kauvery hospital releases statement
pic.twitter.com/gUpZgYnPiY
— ANI (@ANI)
August 7, 2018
06:42 PM कोयंबटूरः CBI ने कस्टम सुपरिटेंडेंट के घर पर छापा मारा, कल हुई थी पूछताछ
06:24 PM कर्नाटकः NIA ने बोधगया ब्लास्ट के मास्टरमाइंड आतंकी कौसर को गिरफ्तार किया
06:11 PM कुछ ही देर में चेन्नई रवाना होंगी पश्चिम बंगाल की सीएम ममता बनर्जी
06:05 PM अंजना ओम कश्यप से LIVE चैट करें शाम 7 बजे aajtak.in पर
06:04 PM पंचकूला हिंसा मामला: SIT ने आरोपी नवीन उर्फ गोबी राम को किया गिरफ्तार
05:51 PM चेन्नई: करुणानिधि की हालत गंभीर, अस्पताल के बाहर DMK कार्यकर्ताओं का जमावड़ा
Chennai: DMK workers break down after Kauvery Hospital released statement that M Karunanidhi's health has deteriorated further.
pic.twitter.com/LapebJnjvi
— ANI (@ANI)
August 7, 2018
05:46 PM राज्यसभा उपसभापति चुनाव के मामले पर विपक्ष की बैठक शुरू
05:45 PM रात 9:30 बजे तक चेन्नई पहुंच सकती हैं बंगाल की सीएम ममता बनर्जी
05:42 PM चेन्नई: करुणानिधि के घर पहुंची उनकी बेटी सेल्वी
05:30 PM राज्यसभा उपसभापति चुनाव को लेकर आम सहमति बनाने की कोशिश में NDA
हरवंश के नाम पर सहमति बनाने के लिए संसदीय कार्य मंत्री अनंत कुमार ने सोमवार देर रात गुलाम नबी आजाद और आनंद शर्मा से मुलाकात की. अनंत कुमार इसके अलावा विपक्षी दलों के साथ संपर्क में भी हैं.
05:04 PM 2007 के हैदराबाद ब्लास्ट केस में 27 अगस्त को आएगा फैसला, 42 लोगों की हुई थी मौत
05:02 PM राज्यसभा उपसभापति के मतदान में पीडीपी के सांसद हिस्सा नहीं लेंगे
राज्यसभा में पीडीपी के दो सांसद हैं.
04:56 PM नीतीश ने चंद्रशेखर राव और नवीन पटनायक से हरिवंश के लिए मांगा समर्थन
नीतीश कुमार ने चंद्रशेखर राव और नवीन पटनायक से फोन पर बात की और राज्यसभा उपसभापति उम्मीदवार हरिवंश के लिए समर्थन मांगा.
04:41 PM चेन्नई: अस्पताल के बाहर जुटे करुणानिधि के समर्थक
04:35 PM करुणानिधि की हालत बेहद गंभीर, अस्पताल ने जारी किया मेडिकल बुलेटिन
04:21 PM दिल्ली: मंत्री इमरान हुसैन के साथ मारपीट मामले में कोर्ट ने पुलिस को जारी किया नोटिस
Delhi Minister Imran Hussain alleged assault case: Tis Hazari Court issued notice to Delhi Police on application of Hussain seeking call detail records of Delhi Chief Secretary Anshu Prakash from 19-25 Feb 2018. Court sought reply of Police till 20th August.
pic.twitter.com/rrz4FAaOof
— ANI (@ANI)
August 7, 2018
04:10 PM राज्यसभा के उपसभापति के चयन मामले में अकाली दल ने अपने सांसदों की बुलाई बैठक
#RajyaSabha
Deputy Chairman elections: President of Shiromani Akali Dal Sukhbir Singh Badal has called a meeting of party's Rajya Sabha MPs at his Delhi residence later today
pic.twitter.com/u6qQHxzr33
— ANI (@ANI)
August 7, 2018
03:56 PM अंजना ओम कश्यप से LIVE चैट करें शाम 7 बजे aajtak.in पर
03:53 PM सुप्रीम कोर्ट में मुजफ्फरपुर मामले की अगली सुनवाई 14 अगस्त को होगी
03:51 PM 26.09 अंकों की गिरावट के साथ 37665.80 पर बंद हुआ सेंसेक्स
निफ्टी में मामूली बढ़त, 4.25 अंकों की बढ़ोतरी के साथ 11391.35 पर बंद हुआ निफ्टी.
03:49 PM मुजफ्फरपुर: ड्यूटी में लापरवाही के आरोप में इंस्पेक्टर विनोद सस्पेंड
03:23 PM तिरुवनंतपुरम: नाबालिग से छेड़छाड़ के आरोप में ट्यूशन टीचर गिरफ्तार
03:04 PM राज्यसभा का कार्यवाही कल तक के लिए स्थगित
02:57 PM दिल्ली: छत्तीसगढ़ के CM रमन सिंह ने राजनाथ सिंह से मुलाकात की
02:11 PM अमित शाह के बयान के दौरान राज्यसभा में हंगामा
02:10 PM कृषि बजट में रिकॉर्ड बढ़ोतरी की: अमित शाह
02:09 PM किसानों की आय बढ़ाने का लक्ष्य: अमित शाह
02:08 PM राज्यसभा में किसानों के मुद्दे पर बोले अमित शाह
02:08 PM राज्यसभा में बोले शाह- सरकार ने फसलों का न्यूनतम समर्थन मूल्य बढ़ाया
01:59 PM 4 साल में जितने जवान शहीद हुए उतने 50 साल में नहीं हुए: संजय राउत
01:36 PM महिलाओं को आगे बढ़ाने का काम करेंगे: राहुल गांधी
01:29 PM महिला आरक्षण बिल पर नहीं बोलते पीएम: राहुल गांधी
01:23 PM महिलाओं के अधिकार के लिए कांग्रेस लड़ेगी: राहुल गांधी
01:22 PM बीजेपी के विधायकों से बेटियों को बचाना है: राहुल गांधी
01:21 PM आरएसएस के दरवाजे महिलाओं के लिए बंद: राहुल गांधी
01:20 PM तालकटोरा स्टेडियम में बोले राहुल- महिलाओं से बलात्कार की वारदात पर नहीं बोलते PM
12:53 PM संस्था की असलियत जाने बिना पैसा क्यों दिया: सुप्रीम कोर्ट
12:52 PM सरकारी अनुदान से चल रहा था बालिका गृह: सुप्रीम कोर्ट
12:51 PM मुजफ्फरपुर कांड: सुप्रीम कोर्ट से बिहार सरकार को फटकार
12:44 PM देवरिया मामले में एक और गिरफ्तारी, शेल्टर होम की संचालिका की बेटी गिरफ्तार
12:38 PM उत्तराखंड: अगले 24 घंटे के लिए चमोली और उत्तरकाशी में भारी बारिश का अलर्ट
12:35 PM गृहमंत्री के बयान से नाराज कांग्रेस समेत विपक्षी पार्टियों ने लोकसभा से वॉक आउट किया
12:28 PM दोषियों को बख्शा नहीं जाएगा: राजनाथ सिंह
12:26 PM लोकसभा में बोले गृहमंत्री- देवरिया मामले में UP सीएम ने तुरंत कार्रवाई की
12:24 PM लोकसभा में समाजवादी पार्टी सांसद धर्मेंद्र ने देवरिया शेल्टर होम मामला उठाया
12:05 PM देवरिया कांड: शेल्टर होम में बच्चियों का शारीरिक शोषण हुआ- रीता बहुगुणा
12:01 PM मुंबई ब्लास्ट के दोषी अबू सलेम का पैरोल का आवेदन खारिज
डॉन अबू सलेम ने इसके लिए बॉम्बे हाईकोर्ट में याचिका दायर कर 45 दिनों की परोल की मांग की थी
11:44 AM UP: सिद्धार्थनगर में स्कूल बस तालाब में गिरी, 20 बच्चे घायल
11:35 AM J-K: गुरेज में मुठभेड़ में सेना ने 2 आतंकियों को मार गिराया
11:34 AM J-K: आतंकियों से मुठभेड़ में मेजर समेत 4 जवान शहीद
11:24 AM छत्तीसगढ़: सुकमा में IED ब्लास्ट, एक सुरक्षाकर्मी घायल
11:16 AM करुणानिधि हेल्थ अपडेट: पुडुचेरी सीएम नारायणसामी कावेरी अस्पताल पहुंचे
11:12 AM देवरिया कांड: हाई लेवल कमेटी शाम 4 बजे योगी सरकार को सौंपेगी रिपोर्ट
11:00 AM पटना जंक्शन हादसे में कड़ी कार्रवाई, एक कनीय अभियंता निलंबित
10:54 AM जस्टिस इंदिरा बनर्जी, विनीत सरन और केएम जोसेफ ने SC के जज के तौर पर शपथ ली
10:48 AM गरीब मुसलमानों को अलग आरक्षण मिले: मायावती
10:47 AM ऊंची जाति में आर्थिक आधार पर आरक्षण मिले: मायावती
10:46 AM गरीब अल्पसंख्यकों को अलग आरक्षण मिले: मायावती
10:45 AM SC/ST संशोधन विधेयक का श्रेय जनता को: मायावती
10:44 AM केंद्र में बैठे दलित नेता अत्याचार पर चुप: मायावती
10:43 AM दलितों पर अत्याचार कर रही है बीजेपी: मायावती
10:40 AM 'आजतक' के स्टिंग ऑपरेशन का असर, संसद में उठेगा UP फेक एनकाउंटर का मामला
10:35 AM एयरसेल-मैक्सिस केस: पी चिदंबरम और उनके बेटे की गिरफ्तारी 8 अक्टूबर तक बढ़ी
10:34 AM एयरसेल-मैक्सिस केस: पी चिदंबरम और उनके बेटे को पटियाला हाउस कोर्ट से राहत
10:27 AM मुजफ्फरपुर और देवरिया मामला: संसद परिसर में एसपी और RJD का प्रदर्शन
09:56 AM पश्चिम बंगाल: आज से तीन दिन हड़ताल पर चाय बागानों के श्रमिक
CORRECTION: Joint Forum of 26 tea trade unions has called a three-day strike in the tea industry in Terai and Dooars region of Siliguri. Today is the first* day of the strike.
#WestBengal
https://t.co/2qDkGwEakN
— ANI (@ANI)
August 7, 2018
09:37 AM करुणानिधि हेल्थ अपडेट: एम के स्टालिन कावेरी अस्पताल पहुंचे
09:17 AM दिल्ली: आज 11.30 बजे महिला कांग्रेस कार्यकर्ताओं को संबोधित करेंगे राहुल गांधी
तालकटोरा स्टेडियम में आज 11.30 बजे महिला कांग्रेस कार्यकर्ताओं को संबोधित करेंगे राहुल गांधी.
09:07 AM एशियन गेम्स 2018 में हिस्सा नहीं लेंगी वेटलिफ्टर मीराबाई चानू
Weightlifter Saikhom Mirabai Chanu will not participate in the Asian Games. She had written a letter to Indian Weightlifting Federation requesting them to give her rest as she is not currently fit, owing to a backache, and wants to prepare for Olympics qualifier. (file pic)
pic.twitter.com/7Q198b9Yka
— ANI (@ANI)
August 7, 2018
08:55 AM J-K: गुरेज सेंक्टर में पाकिस्तान ने तोड़ा सीजफायर
08:50 AM J-K: बांदीपोरा में LOC पर पाकिस्तान की फायरिंग
08:23 AM दिल्ली: गोवा के सीएम मनोहर पर्रिकर आज करेंगे पीएम मोदी से मुलाकात
08:04 AM पटना जंक्शन में वेटिंग रूम की दीवार गिरी, एक यात्री की मौत
#Bihar
: A 70-year-old man died after a wall of a bathroom collapsed in the second class passengers' waiting room on platform 1 at Patna Junction railway station, this morning.
— ANI (@ANI)
August 7, 2018
07:48 AM महाराष्ट्र: आज से तीन दिवसीय हड़ताल पर राज्य कर्मचारी
07:30 AM कर्नाटक: ट्रेड यूनियन की हड़ताल आज, कैब और ऑटो संगठन भी शामिल
07:15 AM दिल्ली-एनसीआर में अगले दो घंटे में बारिश की संभावना
06:53 AM हरियाणा: संयुक्त संघर्ष समिति के बैनर तले रोडवेज की बसों का आज चक्का जाम
06:41 AM करुणानिधि हेल्थ अपडेट : कनिमोझी और ए राजा कावेरी अस्पताल से बाहर निकले
06:34 AM कैलिफ़ोर्निया के जंगल की आग के लिए खराब पर्यावरणीय कानून दोषी : डोनाल्ड ट्रंप
06:22 AM अवैध तरीके से एंट्री की वजह से वेनेज़ुएला के लिए ब्राजील ने बॉर्डर बंद किया
06:08 AM अमेरिका : सेना में ट्रांसजेंडरों की भर्ती पर रोक के खिलाफ कोर्ट ने दिया फैसला
05:46 AM दिल्ली : POCSO एक्ट के तहत विवेक विहार में 3 आरोपियों पर केस दर्ज
05:31 AM व्यापार नीति में ट्रंप का व्यवहार सड़क छाप : चीनी मीडिया
05:08 AM अमेरिका: शिकागो की हिंसा में 11 की मौत, 70 से ज्यादा घायल
04:45 AM बांग्लादेश सरकार ने सड़क परिवहन अधिनियम 2018 के ड्राफ्ट को मंजूरी दी
04:23 AM ट्रंप के बातचीत के प्रस्ताव को ईरान के राष्ट्रपति हसन रूहानी ने किया खारिज
04:04 AM जापान: बारिश में फंसे 1000 से ज्यादा लोगों को सुरक्षित जगहों पर पहुंचाया गया
03:42 AM अमेरिका : विलियम ग्रॉस बने बोस्टन के पहले ब्लैक पुलिस कमिश्नर
03:27 AM इटली के बोलोग्ना नगर के धमाके में 3 लोगों की मौत, 65 से ज्यादा घायल
03:00 AM NASCAR के चेयरमैन ब्रयान फ्रांस ड्रग मामले में गिरफ्तार
02:45 AM इटली : बोलोग्ना नगर में टैंकर में धमाका, 67 लोग घायल
02:25 AM वेनेजुएला के राष्ट्रपति पर हमले की साजिश से अमेरिका का इनकार
02:07 AM सऊदी अरब ने कनाडा के राजदूत को देश से निष्कासित किया
01:50 AM अमेरिका के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार बोल्टन की ओर से ईरान को बातचीत का प्रस्ताव
01:35 AM ऑस्ट्रेलियाई प्रधानमंत्री पर स्वदेशी नेताओं को अपमानित करने का आरोप
01:20 AM इटली के बोलोगना शहर के बाहरी इलाके में धमाके की आवाज
01:05 AM नेपाल का व्यापार घाटा पहली बार 10 अरब डॉलर के पार
12:45 AM दिल्ली: आज पीएम मोदी से मिलेंगे गोवा के सीएम मनोहर पर्रिकर
12:35 AM राज्यसभा उपसभापति चुनावः अकाली दल की संसदीय दल की बैठक आज
12:22 AM महाराष्ट्र में आज से तीन दिवसीय हड़ताल पर राज्य कर्मचारी
7वें वेतन आयोग की सिफारिश लागू करने की मांग पर 17 लाख राज्य कर्मचारी करेंगे हड़ताल
12:14 AM बीजेपी की संसदीय समिति की बैठक आज
12:04 AM कर्नाटक में ट्रेड यूनियन की हड़ताल आज, कैब और ऑटो संगठन भी शामिल
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वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने सरकारी बैंकों पर बड़ा ऐलान किया है. वित्त मंत्री ने कई बैंकों के विलय की घोषणा की. इसके साथ ही 10 सरकारी बैंकों को मिलाकर अब 4 बैंक कर दिए गए हैं. हालांकि ये पहली बार नहीं है, जब सरकारी बैंकों का विलय किया गया हो. इससे पहले भी मोदी सरकार कई सरकारी बैंकों का विलय कर चुकी है.
साल 2017 में पब्लिक सेक्टर के 27 बैंक थे. लेकिन पिछले 2 साल में पीएसयू बैंकों की संख्या 27 से घटकर 12 हो गई है. इसका मतलब है कि मोदी सरकार में दो साल में 15 सरकारी बैंकों को दूसरे बैंकों में विलय कर दिया गया.
2017 में SBI का विलय
देश में खस्ताहाल सरकारी बैंकिंग ढांचे को दुरुस्त करने के लिए केंद्र सरकार इससे पहले भी कई सरकारी बैंकों का विलय कर चुका है. इससे पहले साल 2017 में मोदी सरकार ने स्टेट बैंक ऑफ इंडिया (एसबीआई) के पांच सब्सिडियरी बैंकों को भारतीय स्टेट बैंक में विलय कर दिया था.
इन पांच सब्सिडियरी में स्टेट बैंक ऑफ बीकानेर एंड जयपुर, स्टेट बैंक ऑफ मैसूर, स्टेट बैंक ऑफ त्रावणकोर, स्टेट बैंक ऑफ पटियाला और स्टेट बैंक ऑफ हैदराबाद थे, जिनका एसबीआई में मर्ज हो गया था. इसके साथ ही एसबीआई देश का सबसे बड़ा बैंक बन गया था.
2018 में बैंक ऑफ बड़ौदा में विलय
वहीं साल 2018 में तीन और बैंकों के विलय का ऐलान किया गया था. इन तीन बैकों में बैंक ऑफ बड़ौदा के साथ देना बैंक और विजया बैंक का विलय कर दिया गया था.
2019 में भी बैंकों का विलय
वहीं अब साल 2019 में सरकार ने कुछ और सरकारी बैंकों का विलय का ऐलान किया है. वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने ऐलान करते हुए बताया कि पंजाब नेशनल बैंक (PNB) के साथ ओरिएंटल बैंक ऑफ कॉमर्स (OBC) और यूनाइटेड बैंक का विलय होगा. इसके साथ ही पंजाब नेशनल बैंक दूसरा सबसे बड़ा बैंक बन जाएगा.
वहीं यूनियन बैंक ऑफ इंडिया, आंध्रा बैंक और कॉरपोरेशन बैंक का विलय होगा. इसके साथ ही यह पांचवां सबसे बड़ा बैंक बन जाएगा. वहीं इंडियन बैंक और इलाहाबाद बैंक का विलय होगा. जिसके बाद यह सातवां सबसे बड़ा बैंक हो जाएगा. इसके अलावा केनरा बैंक का सिंडिकेट बैंक के साथ मर्जर होगा.
अब बचे 12 बैंक
देश में अब 12 PSBs बैंक रह गए हैं. इससे पहले साल 2017 में पब्लिक सेक्टर के 27 बैंक थे. पिछले 2 साल में पीएसयू बैंकों की संख्या अब 27 से घटकर 12 हो गई है. मर्जर के बाद पीएसयू बैंकों की संख्या 12 रह जाएगी. अब 12 बैंकों में 1. (पंजाब नेशनल बैंक+यूनाइटेड बैंक+ओरिएंटल बैंक ऑफ कॉमर्स), 2. (केनरा बैंक+सिंडिकेट बैंक) 3. (इंडियन बैंक+इलाहाबाद बैंक), 4. (बैंक ऑफ इंडिया+आंध्रा बैंक+कॉरपोरेशन बैंक), 5. बैंक ऑफ इंडिया, 6. बैंक ऑफ बड़ौदा, 7. बैंक ऑफ महाराष्ट्र, 8. सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया, 9. इंडियन ओवरसीज बैंक, 10. पंजाब एंड सिंध बैंक, 11. भारतीय स्टेट बैंक और 12. यूको बैंक रह गए हैं.
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दिए गए शीर्षक के अनुरूप एक पाठ यह हो सकता है: स्मार्ट फोन भले ही आज जिंदगी का अहम हिस्सा बन गया हो, लेकिन देशभर के मेडिकल कॉलेजों में दाखिले के लिए आयोजित NEET (National Eligibility Entrance Test) यानी राष्ट्रीय पात्रता व प्रवेश परीक्षा में अव्वल आए नलिन खंडेलवाल का मानना है कि अगर 12वीं के स्तर पर अच्छा रिजल्ट चाहिये तो स्मार्ट फोन से दूरी बनाना बेहद जरूरी है. आपको बता दें कि NEET में नलिन खंडेलवाल ने कुल 720 अंकों में 701 अंक हासिल करते हुए 99.99 पर्सेंटाइल के साथ टॉप किया है. नीट के नतीजों के आधार पर ही देश के मेडिकल कांउसिल ऑफ इंडिया और डेंटल कांउसिल ऑफ इंडिया से मान्यता प्राप्त संस्थानों में दाखिला होता है. नलिन का मानना है कि NEET की परीक्षा में बायोलॉजी सबसे स्कोरिंग सब्जेक्ट है. इस विषय में आप अपनी मेहनत के दम पर 90% तक अंक हासिल कर सकते हैं.
नलिन बताते हैं कि फिजिक्स उनकी तैयारी का सबसे कमजोर हिस्सा रहा, जिसकी वजह से उन्हें बायोलॉजी के बाद सबसे ज्यादा मेहनत फिजिक्स पर ही करनी पड़ी थी. जहां तक केमिस्ट्री की बात है तो इस सब्जेक्ट की फिजिक्स और बायोलॉजी दोनों के मुकाबले कम समय में तैयारी की जा सकती है. एनडीटीवी से खास बातचीत के दौरान नलिन ने बताया कि अपनी तैयारी के दौरान वे रोजाना सात से आठ घंटे तक सेल्फ स्टडी करते थे. वे कहते हैं कि कई बार छात्र NEET और 12वीं बोर्ड की तैयारी में प्राथमिकताओं को लेकर उलझन में पड़ जाते हैं, लेकिन मेरा मानना है कि अगर NCERT को आधार बनाकर तैयारी की जाए तो इन दोनों ही परीक्षाओं की तैयारी साथ साथ हो जाती है. जहां NEET में पूछे जाने वाले सवालों का आधार NCERT रहता है, वहीं 12वीं बोर्ड के सवाल पूरी तरह से NCERT के सिलेबस के दायरे में होते हैं.
देशभर में पहले नंबर पर आए नलिन का कहना है कि हमें अपनी तैयारी में सबसे ध्यान शंकाओं को दूर करने पर देना चाहिए और ये बात अपने दिमाग से निकाल देनी चाहिए कि अगर आप कोई सवाल पूछते हैं तो दूसरा आपको लेकर क्या सोचेगा. जब तक सारी शंका दूर नहीं होती तब तक हम अपनी कमियों को सुधार नहीं सकते हैं. नलिन का ये भी मानना है कि परीक्षा के लिए अगर तैयारी जरूरी है तो इस दौरान खुद को मानसिक तौर पर फिट रखना भी बेहद अहम है. NEET टॉपर नलिन अब आगे की पढ़ाई नई दिल्ली स्थित AIIMS से करना चाहते हैं. जहां तक पारिवारिक पृष्ठभूमि का सवाल है तो नलिन के माता-पिता दोनों ही डॉक्टर हैं. पिता राकेश खंडेलवाल शिशु रोग विशेषज्ञ हैं, मां विनीता महिला रोग विशेषज्ञ हैं. इतना ही नहीं बड़े भाई निहित भी जोधपुर से एमबीबीएस की पढ़ाई कर रहे हैं.
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मंगलवार को लाहौर हाई कोर्ट ने फैसला दिया कि जमात-उद-दावा चीफ हाफिज सईद की नज़रबंदी खत्म कर दी जाए और उसे रिहा किया जाए.
कोर्ट ने कहा कि सईद के खिलाफ ठोस सबूत नहीं हैं, इसलिए उसे नज़रबंद रखने का कोई मतलब नहीं है. हाफिज सईद 26 नवंबर को मुंबई में हुए आतंकवादी हमले का आरोपी है. वह 11 दिसंबर 2008 से नज़रबंद था.
भारत ने हाफिज सईद की रिहाई के आदेश पर सख्त प्रतिक्रिया दी है. भारत सरकार ने कहा है कि पाक अपने वादे से मुकर रहा है.
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लेख: अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप को भारत में अपने रीयल एस्टेट कारोबार से रॉयल्टी के तौर पर 2016 में कुछ आय हुई. यह जानकारी उन्हांने अपने वार्षिक वित्तीय लेखा-जोखा में कही है. अमेरिकी सरकार के शासकीय आचार संहिता कार्यालय द्वारा जारी इसकी एक प्रतिलिपि के अनुसार इस दौरान ट्रंप की सूचीबद्ध संपत्तियां 1.4 अरब डॉलर है और उनकी आय 45.2 करोड़ डॉलर से अधिक रही.
ट्रंप ने मंगलवार को अपने वित्तीय आय-व्यय की जानकारी सार्वजनिक की थी. इन दस्तावेजों के अनुसार ट्रंप को भारत स्थित अपने दो रीयल एस्टेट उपक्रमों से आय प्राप्त हुई है. दोनों से मिली आय को रॉयल्टी की श्रेणी में रखा गया है.
ट्रंप को भारत में डीटी मार्क्स वर्ली एलएलसी से 10 लाख डॉलर से 50 लाख डॉलर के बीच आय हुई है. यह आय जवाला रीयल एस्टेट प्रा.लि. और लोढा डवलपर्स प्रा.लि. के साथ लाइसेंस करार के तहत हुई. लेकिन इस करार का स्थान न्यूयार्क बताया गया है.टिप्पणियां
उन्हें इसके अलावा डीटी टावर कोलकाता एलएलसी से भी लाइसेंस के तहत एक लाख डॉलर और 10 लाख डॉलर के बीच आय हुई. हालांकि डीटी टावर गुड़गांव एलएलसी से उनकी आय 201 डॉलर से भी कम हुई है जो लगभग नगण्य है.
इसके अलावा उनके अन्य भारतीय कारोबारों का भी इन दस्तावेजों में उल्लेख किया गया है लेकिन उनसे उन्हें कोई आय नहीं हुई है.
ट्रंप ने मंगलवार को अपने वित्तीय आय-व्यय की जानकारी सार्वजनिक की थी. इन दस्तावेजों के अनुसार ट्रंप को भारत स्थित अपने दो रीयल एस्टेट उपक्रमों से आय प्राप्त हुई है. दोनों से मिली आय को रॉयल्टी की श्रेणी में रखा गया है.
ट्रंप को भारत में डीटी मार्क्स वर्ली एलएलसी से 10 लाख डॉलर से 50 लाख डॉलर के बीच आय हुई है. यह आय जवाला रीयल एस्टेट प्रा.लि. और लोढा डवलपर्स प्रा.लि. के साथ लाइसेंस करार के तहत हुई. लेकिन इस करार का स्थान न्यूयार्क बताया गया है.टिप्पणियां
उन्हें इसके अलावा डीटी टावर कोलकाता एलएलसी से भी लाइसेंस के तहत एक लाख डॉलर और 10 लाख डॉलर के बीच आय हुई. हालांकि डीटी टावर गुड़गांव एलएलसी से उनकी आय 201 डॉलर से भी कम हुई है जो लगभग नगण्य है.
इसके अलावा उनके अन्य भारतीय कारोबारों का भी इन दस्तावेजों में उल्लेख किया गया है लेकिन उनसे उन्हें कोई आय नहीं हुई है.
ट्रंप को भारत में डीटी मार्क्स वर्ली एलएलसी से 10 लाख डॉलर से 50 लाख डॉलर के बीच आय हुई है. यह आय जवाला रीयल एस्टेट प्रा.लि. और लोढा डवलपर्स प्रा.लि. के साथ लाइसेंस करार के तहत हुई. लेकिन इस करार का स्थान न्यूयार्क बताया गया है.टिप्पणियां
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इसके अलावा उनके अन्य भारतीय कारोबारों का भी इन दस्तावेजों में उल्लेख किया गया है लेकिन उनसे उन्हें कोई आय नहीं हुई है.
उन्हें इसके अलावा डीटी टावर कोलकाता एलएलसी से भी लाइसेंस के तहत एक लाख डॉलर और 10 लाख डॉलर के बीच आय हुई. हालांकि डीटी टावर गुड़गांव एलएलसी से उनकी आय 201 डॉलर से भी कम हुई है जो लगभग नगण्य है.
इसके अलावा उनके अन्य भारतीय कारोबारों का भी इन दस्तावेजों में उल्लेख किया गया है लेकिन उनसे उन्हें कोई आय नहीं हुई है.
इसके अलावा उनके अन्य भारतीय कारोबारों का भी इन दस्तावेजों में उल्लेख किया गया है लेकिन उनसे उन्हें कोई आय नहीं हुई है.
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ज्येष्ठरा/बरपटिया जनजाति उत्तराखण्ड के पिथौरागढ़ जिले के मुनस्यारी ब्लॉक के मूल निवासी है जिन्हें ज्येष्ठरा भी कहा जाता है। 'ज्येष्ठरा' का अर्थ होता है ज्येष्ठ या श्रेष्ठ अर्थात् जनजाति में श्रेष्ठ तथा 'बरपटिया' का अर्थ होता है बारह पट्टी का ऊनी कोट पहनने वाले या बारह गाँव के निवासी।
२०१५ में राज्य के मुख्य मन्त्री हरीश रावत से एक दौरे में भेंट के दौरान इन लोगों ने अपने क्षेत्र में बुनियादी सेवाओं की कमी को दूर करने की माँग रखी थी।
विवरण
उत्तराखण्ड राज्य के पिथौरागढ जिले में ज्येष्ठरा/बरपटिया जनजाति मुनस्यारी तहसील के बारह गाँवों में निवास करती है उपजाति के नाम पर है ज्येष्ठरा जनजाति के लोग अन्य जनजाति से वर्तमान समय में पिछड़े हुए है जिस कारण इनके बारे में अभी तक अधिक जानकारी किसी भी पुस्तक में नहीं है जिस कारण बहुत कम ही लोग इस जनजाति के बारे में जानते है इस जनजाति का नाम बरपटिया होने के पीछे भी एक कारण है यह लोग पुराने समय में बारह पट्टी वाली एक विशेष कोट पहना करते थे जिसे ये अपनी आम भाषा में बुखोल कहते थे तथा उस कोट के जैब में ये जौ रखा करते थे यह जौ रखने का कारण था तिब्बत व्यापार क्यों कि उन दिनों तिब्बत में व्यापार के लिए बहुत लोग अलग- अलग जगह से आया करते थे जिस कारण अपनी अलग पहचान के लिए ये कोट के जैब में जौ रखा करते थे जिससे तिब्बत के इनके मित्र व्यापारी इन्हें पहचान लेते थे की मुनस्यारी के ज्येष्ठरा व्यापारी यहाँ पहुँच चुके है इस प्रकार जेष्ठरा जनजाति के लोग मुनस्यारी के मूल निवासी है जो उस समय मुनस्यारी क्षेत्र में राज किया करते थे तथा एक समय में यह जनजाति एक शाही जनजाति हुआ करती थी जो की अब अपनी पहचान व अस्तित्व के लिए संर्घष कर रही है।
ज्येष्ठरा जनजाति का वर्तमान समय में पिछड़ने का कारण उनका अतीत में लिया गया फैसला रहा है सन् 1962 में भारत व चीन का युद्ध हुआ जिससे सम्पूर्ण भारत प्रभावित हुआ और ज्येष्ठरा/बरपटिया जनजाति पर भी इसका प्रभाव पडा तिब्बत व्यापर बन्द हो गया जिससे इस जनजाति को बहुत परेशानी का सामना करना पडा सरकार द्वारा इस सीमान्त क्षेत्र में रहने वाली सभी जनजाति के कल्याण के लिए सन् 1967 में आरक्षण को लागू किया गया अन्य जनजाति के लोग कुछ पढे लिखे थे अतः उन्होंने इसका लाभ प्राप्त करना आरम्भ कर दिया ज्येष्ठरा जनजाति में पढ़े लिखे लोग कम थे जिस कारण वह उसका लाभ न ले सके उन्हें इस लाभ के बारे में जानकारी ही नहीं थी आगे चल कर कुछ जानकारी प्राप्त हुई परन्तु उस समय ज्येष्ठरा जनजाति के लोग नौकरी करने को अपने मान सम्मान के प्रतिकूल समझा करते थे तथा पढने में रुचि कम रखते थे जिस कारण बरपटिया जनजाति समय के साथ-साथ अन्य जनजाति यों से पिछड़ने लगी आज वह इतना पिछड़ चुकि है कि उसे अपने पहचान व अस्तित्व के लिए संघर्ष करना पड रहा है।
वेशभूषा
बरपटिया जनजाति की महिला उस समय निम्नलिखित प्रकार के आभूषणों को पहना करते थे-
चनरहार
सुतु
तिलर
त्वार
टकॉल
पुलि
कंठी माला
धोलमाल
मुनरे
नथ व बिड
अतरदान
धागुल
मुरकी
गलोबन्द
बरपटिया जनजाति की महिला नाक में नथ व बिड पहना करती थी जो सोने के बने होते है तथा लडकीयां हल्के मुरकी कान में पहना करती थी जो या तो सोने के या फिर चांदी से बने होते थे व महिला कान में मुनरे पहना करती थी जो सोने के बने होते है, गले में ग्लोबन्द जो सोने का बना होता है व धोलमाल जिसे सफेद माला कहते है जो मोती के माला की तरह होती है तथा कंठी माला जो चांदी के बने होते है व टकॉल माला जो विक्टोरिया डॉलर का बना होता है पहना करती थी इसी तरह गले में पहनने वाले मालों में चनरहार, सुतु, तिलर, त्वार होते है जो चांदी के बने होते है, चांदी से बनी हुई पुलि जिसे बरपटिया जनजाति की महिला पांव के अंगुली में पहना करती थी धागुल एक प्रकार की चूडी होती है जो चांदी से बनी होती है इसे बरपटिया जनजाति की महिला हाथों में पहना करती थी, अतरदान भी चांदी का बना होता है इस आभूषण को भी बरपटिया जनजाति की महिला पहना करती थी इस आभूषण से एक चांदी का छोटा सा डब्बा जूडा होता है इस प्रकार बरपटिया जनजाति की महिला पूरी तरह अपना पारम्परिक पहिनावें के साथ ये सभी आभूषणों को पहना करती थी परन्तु वर्तमान समय में ये सभी आभूषण देखने को कम मिलते है इनकी जगह अब नये आधुनिक आभूषणों ने ले लिया है। बरपटिया जनजाति की महिला वस्त्रों में घागुर व कामुल तथा आंगुर, खोपी आदि को पहना करती है तथा पुरुष बुखोल, पगडी, ऊनी पायजामा आदि पहना करते थे।
सन्दर्भ
भारत की जनजातियाँ
पिथौरागढ़ जिला
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लेख: एनडीटीवी एक बार फिर से भारत का सबसे भरोसेमंद मीडिया साबित हुआ है। इसके अलावा इसे अखबार, टीवी, रेडियो और इंटरनेट सहित सभी तरह की मीडिया श्रेणियों में नंबर एक माना गया है।
ट्रस्ट रीसर्च एडवाइजरी के ब्रांड ट्रस्ट रिपोर्ट 'इंडिया स्टडी 2015' में लगातार दूसरे साल एनडीटीवी को भारत का सबसे भरोसेमंद मीडिया ब्रांड नामित किया गया है।
भारत के 16 शहरों में 15,000 घंटों से अधिक के फील्डवर्क और उपभोक्ताओं को प्रभावित करने वाले 2,373 लोगों से बातचीत के आधार पर कंपनी ने देश के शीर्ष मीडिया संस्थानों की यह सूची जारी की है। इस अध्ययन में 19,000 से अधिक ब्रैंड्स में से शीर्ष एक हजार ब्रैंड्स को शामिल किया था, जिसमें एनडीटीवी को सबसे भरोसेमंद मीडिया ब्रांड साबित हुआ।
पिछले कुछ वर्षों में एनडीटीवी को कई प्रतिष्ठित राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय पुरस्कारों से सम्मानित किया जाता रहा है। अब भारत के सबसे भरोसेमंद मीडिया ब्रांड चुना जाना पुष्टि करता है कि एक मीडिया ब्रांड के सबसे मौलिक मूल्यों पर एनडीटीवी खरा उतरता है।
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ओडिशा के बुरला में एक अस्पताल में 24 घंटे के भीतर 9 नवजात बच्चों की मौत हो गई. अस्पताल प्रशासन का कहना है कि सभी बच्चे वक्त से पहले जन्मे थे और गंभीर रूप से बीमार थे. राज्य सरकार ने मामले की जांच के आदेश दे दिए हैं.
अस्पताल की सुपरिटेंडेंट डॉ. लक्ष्मीकांत दास ने अस्पताल प्रशासन की ओर से किसी लापरवाही की आशंका से इनकार किया. उन्होंने बताया कि सभी बच्चों को अस्पताल के शिशु वार्ड में इनक्यूबेटर (समय से पहले जन्मे बच्चों को जिंदा रखने की मशीन) में रखा गया था. सभी बच्चे समय से पहले जन्मे थे. उनका वजन बहुत कम था और उन्हें खून की कमी और सांस से जुड़ी दिक्कतें भी थीं.
उन्होंने कहा, 'उनमें से एक बच्चे का वजन मुश्किल से 560 ग्राम था. उनकी मौत महज इत्तेफाक है. हालांकि हम मामले की जांच करेंगे. मैंने विभाग के अध्यक्ष से तत्काल रिपोर्ट मांगी है.'
वहीं स्वास्थ्य मंत्री दामोदर राउत ने बताया कि द डायरेक्टर मेडिकल एजुकेशन एंड ट्रेनिंग और शिशु भवन के डायरेक्टर को मामले की जांच करने को कहा गया है. उन्होंने कहा, 'शुरुआती जानकारी के मुताबिक ज्यादातर बच्चे जन्म के साथ बीमार थे. लेकिन जांच के बाद ही तस्वीर साफ होगी.'
घटना के बाद अस्पताल में तनाव की स्थिति पैदा हो गई, जब बच्चों के परिजन अस्पताल प्रशासन को घटना का जिम्मेदार बताने लगे.
मामले को विपक्ष ने भी हाथोंहाथ लिया है. अस्पताल प्रशासन पर लापरवाही का आरोप लगाते हुए कांग्रेस ने बुरला में सड़क जाम कर प्रदर्शन किया. वहीं बीजेपी नेता जयनारायण मिश्रा ने भी राज्य की बीजेडी सरकार पर अस्पताल की हालत सुधारने में नाकाम रहने का आरोप लगाया.
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यह एक लेख है: सरकार ने बताया है कि संघ लोक सेवा आयोग (यूपीएससी) की विभिन्न प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए अब 100 प्रतिशत आवेदन ऑनलाइन किए जा रहे हैं जबकि कर्मचारी चयन आयोग में 95 प्रतिशत पंजीकरण ऑनलाइन हो रहे हैं।
कार्मिक एवं लोक शिकायत राज्य मंत्री डा. जितेन्द्र सिंह ने पूरक प्रश्नों के जवाब में राज्यसभा को बताया कि संघ लोकसेवा ने 2010 से ही ऑनलाइन पंजीकरण का विकल्प शुरू कर दिया था। किन्तु 2012 के बाद से यूपीएससी में शत प्रतिशत आवेदनों का पंजीकरण ऑनलाइन होने लगा है।
उन्होंने बताया कि वर्ष 2015-16 के दौरान एसएससी द्वारा आयोजित परीक्षाओं के लिए लगभग 95 प्रतिशत आवेदन ऑनलाइन किए गये थे। उन्होंने कहा कि सरकार यूपीएससी एवं एसएससी की परीक्षाओं के लिए 100 प्रतिशत आवेदनों का पंजीकरण ऑनलाइन कराने के लक्ष्य के साथ आगे बढ़ रही है।
सिंह ने कहा कि सरकार की चयन प्रक्रिया को लेकर जो नजरिया है उसके तीन मुख्य बिन्दु हैं- पारदर्शिता, सभी को समानता के अवसर प्रदान करना और प्रक्रिया को सुगम बनाना।
इससे पहले बीजद के भूपेन्द्र सिंह ने पूरक सवाल पूछते हुए कहा कि दूरदराज, पहाडी और आदिवासी क्षेत्रों में रहने वाले लोगों को ऑनलाइन आवेदन करने में काफी कठिनाइयां होती हैं। इसके अलावा हमारा इंटरनेट तंत्र जब बड़े शहरों में ही ढंग से नहीं चलता तो दूरदराज एवं आदिवासी क्षेत्रों में तो और भी दिक्कते हैं। उन्होंने इन क्षेत्रों के लोगों को ऑनलाइन पंजीकरण से राहत दिलावने का सुझाव दिया।
कांग्रेस के एम एस गिल ने भी पूरक सवाल पूछते हुए उनसे पिछड़े एवं दूरदराज के क्षेत्रों के लोगों को ऑनलाइन पंजीकरण से राहत दिलवाने का सुझाव दिया।टिप्पणियां
इसके जवाब में मंत्री ने कहा कि केन्द्र ने सभी जिला कलेक्टरों को निर्देश दिये हैं कि यदि किसी प्रत्याशी को ऑनलाइन आवेदन में दिक्कत आ रही है तो उसकी मदद के लिए उपयुक्त प्रबंध किए जाए। उन्होंने कहा कि इसके अलावा इस संबंध में हेल्पलाइन नंबर भी संबंधित वेबसाइट पर दिये गये हैं।
उन्होंने ऑनलाइन आवेदन पंजीकरण को खत्म करने की संभावना से साफ इंकार किया।
कार्मिक एवं लोक शिकायत राज्य मंत्री डा. जितेन्द्र सिंह ने पूरक प्रश्नों के जवाब में राज्यसभा को बताया कि संघ लोकसेवा ने 2010 से ही ऑनलाइन पंजीकरण का विकल्प शुरू कर दिया था। किन्तु 2012 के बाद से यूपीएससी में शत प्रतिशत आवेदनों का पंजीकरण ऑनलाइन होने लगा है।
उन्होंने बताया कि वर्ष 2015-16 के दौरान एसएससी द्वारा आयोजित परीक्षाओं के लिए लगभग 95 प्रतिशत आवेदन ऑनलाइन किए गये थे। उन्होंने कहा कि सरकार यूपीएससी एवं एसएससी की परीक्षाओं के लिए 100 प्रतिशत आवेदनों का पंजीकरण ऑनलाइन कराने के लक्ष्य के साथ आगे बढ़ रही है।
सिंह ने कहा कि सरकार की चयन प्रक्रिया को लेकर जो नजरिया है उसके तीन मुख्य बिन्दु हैं- पारदर्शिता, सभी को समानता के अवसर प्रदान करना और प्रक्रिया को सुगम बनाना।
इससे पहले बीजद के भूपेन्द्र सिंह ने पूरक सवाल पूछते हुए कहा कि दूरदराज, पहाडी और आदिवासी क्षेत्रों में रहने वाले लोगों को ऑनलाइन आवेदन करने में काफी कठिनाइयां होती हैं। इसके अलावा हमारा इंटरनेट तंत्र जब बड़े शहरों में ही ढंग से नहीं चलता तो दूरदराज एवं आदिवासी क्षेत्रों में तो और भी दिक्कते हैं। उन्होंने इन क्षेत्रों के लोगों को ऑनलाइन पंजीकरण से राहत दिलावने का सुझाव दिया।
कांग्रेस के एम एस गिल ने भी पूरक सवाल पूछते हुए उनसे पिछड़े एवं दूरदराज के क्षेत्रों के लोगों को ऑनलाइन पंजीकरण से राहत दिलवाने का सुझाव दिया।टिप्पणियां
इसके जवाब में मंत्री ने कहा कि केन्द्र ने सभी जिला कलेक्टरों को निर्देश दिये हैं कि यदि किसी प्रत्याशी को ऑनलाइन आवेदन में दिक्कत आ रही है तो उसकी मदद के लिए उपयुक्त प्रबंध किए जाए। उन्होंने कहा कि इसके अलावा इस संबंध में हेल्पलाइन नंबर भी संबंधित वेबसाइट पर दिये गये हैं।
उन्होंने ऑनलाइन आवेदन पंजीकरण को खत्म करने की संभावना से साफ इंकार किया।
उन्होंने बताया कि वर्ष 2015-16 के दौरान एसएससी द्वारा आयोजित परीक्षाओं के लिए लगभग 95 प्रतिशत आवेदन ऑनलाइन किए गये थे। उन्होंने कहा कि सरकार यूपीएससी एवं एसएससी की परीक्षाओं के लिए 100 प्रतिशत आवेदनों का पंजीकरण ऑनलाइन कराने के लक्ष्य के साथ आगे बढ़ रही है।
सिंह ने कहा कि सरकार की चयन प्रक्रिया को लेकर जो नजरिया है उसके तीन मुख्य बिन्दु हैं- पारदर्शिता, सभी को समानता के अवसर प्रदान करना और प्रक्रिया को सुगम बनाना।
इससे पहले बीजद के भूपेन्द्र सिंह ने पूरक सवाल पूछते हुए कहा कि दूरदराज, पहाडी और आदिवासी क्षेत्रों में रहने वाले लोगों को ऑनलाइन आवेदन करने में काफी कठिनाइयां होती हैं। इसके अलावा हमारा इंटरनेट तंत्र जब बड़े शहरों में ही ढंग से नहीं चलता तो दूरदराज एवं आदिवासी क्षेत्रों में तो और भी दिक्कते हैं। उन्होंने इन क्षेत्रों के लोगों को ऑनलाइन पंजीकरण से राहत दिलावने का सुझाव दिया।
कांग्रेस के एम एस गिल ने भी पूरक सवाल पूछते हुए उनसे पिछड़े एवं दूरदराज के क्षेत्रों के लोगों को ऑनलाइन पंजीकरण से राहत दिलवाने का सुझाव दिया।टिप्पणियां
इसके जवाब में मंत्री ने कहा कि केन्द्र ने सभी जिला कलेक्टरों को निर्देश दिये हैं कि यदि किसी प्रत्याशी को ऑनलाइन आवेदन में दिक्कत आ रही है तो उसकी मदद के लिए उपयुक्त प्रबंध किए जाए। उन्होंने कहा कि इसके अलावा इस संबंध में हेल्पलाइन नंबर भी संबंधित वेबसाइट पर दिये गये हैं।
उन्होंने ऑनलाइन आवेदन पंजीकरण को खत्म करने की संभावना से साफ इंकार किया।
सिंह ने कहा कि सरकार की चयन प्रक्रिया को लेकर जो नजरिया है उसके तीन मुख्य बिन्दु हैं- पारदर्शिता, सभी को समानता के अवसर प्रदान करना और प्रक्रिया को सुगम बनाना।
इससे पहले बीजद के भूपेन्द्र सिंह ने पूरक सवाल पूछते हुए कहा कि दूरदराज, पहाडी और आदिवासी क्षेत्रों में रहने वाले लोगों को ऑनलाइन आवेदन करने में काफी कठिनाइयां होती हैं। इसके अलावा हमारा इंटरनेट तंत्र जब बड़े शहरों में ही ढंग से नहीं चलता तो दूरदराज एवं आदिवासी क्षेत्रों में तो और भी दिक्कते हैं। उन्होंने इन क्षेत्रों के लोगों को ऑनलाइन पंजीकरण से राहत दिलावने का सुझाव दिया।
कांग्रेस के एम एस गिल ने भी पूरक सवाल पूछते हुए उनसे पिछड़े एवं दूरदराज के क्षेत्रों के लोगों को ऑनलाइन पंजीकरण से राहत दिलवाने का सुझाव दिया।टिप्पणियां
इसके जवाब में मंत्री ने कहा कि केन्द्र ने सभी जिला कलेक्टरों को निर्देश दिये हैं कि यदि किसी प्रत्याशी को ऑनलाइन आवेदन में दिक्कत आ रही है तो उसकी मदद के लिए उपयुक्त प्रबंध किए जाए। उन्होंने कहा कि इसके अलावा इस संबंध में हेल्पलाइन नंबर भी संबंधित वेबसाइट पर दिये गये हैं।
उन्होंने ऑनलाइन आवेदन पंजीकरण को खत्म करने की संभावना से साफ इंकार किया।
इससे पहले बीजद के भूपेन्द्र सिंह ने पूरक सवाल पूछते हुए कहा कि दूरदराज, पहाडी और आदिवासी क्षेत्रों में रहने वाले लोगों को ऑनलाइन आवेदन करने में काफी कठिनाइयां होती हैं। इसके अलावा हमारा इंटरनेट तंत्र जब बड़े शहरों में ही ढंग से नहीं चलता तो दूरदराज एवं आदिवासी क्षेत्रों में तो और भी दिक्कते हैं। उन्होंने इन क्षेत्रों के लोगों को ऑनलाइन पंजीकरण से राहत दिलावने का सुझाव दिया।
कांग्रेस के एम एस गिल ने भी पूरक सवाल पूछते हुए उनसे पिछड़े एवं दूरदराज के क्षेत्रों के लोगों को ऑनलाइन पंजीकरण से राहत दिलवाने का सुझाव दिया।टिप्पणियां
इसके जवाब में मंत्री ने कहा कि केन्द्र ने सभी जिला कलेक्टरों को निर्देश दिये हैं कि यदि किसी प्रत्याशी को ऑनलाइन आवेदन में दिक्कत आ रही है तो उसकी मदद के लिए उपयुक्त प्रबंध किए जाए। उन्होंने कहा कि इसके अलावा इस संबंध में हेल्पलाइन नंबर भी संबंधित वेबसाइट पर दिये गये हैं।
उन्होंने ऑनलाइन आवेदन पंजीकरण को खत्म करने की संभावना से साफ इंकार किया।
कांग्रेस के एम एस गिल ने भी पूरक सवाल पूछते हुए उनसे पिछड़े एवं दूरदराज के क्षेत्रों के लोगों को ऑनलाइन पंजीकरण से राहत दिलवाने का सुझाव दिया।टिप्पणियां
इसके जवाब में मंत्री ने कहा कि केन्द्र ने सभी जिला कलेक्टरों को निर्देश दिये हैं कि यदि किसी प्रत्याशी को ऑनलाइन आवेदन में दिक्कत आ रही है तो उसकी मदद के लिए उपयुक्त प्रबंध किए जाए। उन्होंने कहा कि इसके अलावा इस संबंध में हेल्पलाइन नंबर भी संबंधित वेबसाइट पर दिये गये हैं।
उन्होंने ऑनलाइन आवेदन पंजीकरण को खत्म करने की संभावना से साफ इंकार किया।
इसके जवाब में मंत्री ने कहा कि केन्द्र ने सभी जिला कलेक्टरों को निर्देश दिये हैं कि यदि किसी प्रत्याशी को ऑनलाइन आवेदन में दिक्कत आ रही है तो उसकी मदद के लिए उपयुक्त प्रबंध किए जाए। उन्होंने कहा कि इसके अलावा इस संबंध में हेल्पलाइन नंबर भी संबंधित वेबसाइट पर दिये गये हैं।
उन्होंने ऑनलाइन आवेदन पंजीकरण को खत्म करने की संभावना से साफ इंकार किया।
उन्होंने ऑनलाइन आवेदन पंजीकरण को खत्म करने की संभावना से साफ इंकार किया।
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बतौर मुख्यमंत्री जब भूपिंदर सिंह हुड्डा ने रविवार के दिन अपने बंगले पर सूचना आयुक्तों को शपथ दिलाई थी तब विपक्ष में बैठी बीजेपी ने खूब शोर मचाया था। पार्टी के नेता राज्यपाल के पास ज्ञापन लेकर पहुंच गए थे, लेकिन अब सरकार बनने के बाद बीजेपी की खट्टर सरकार को नियुक्ति में कोई खोट नज़र नहीं आ रहा।
पिछले साल जुलाई में नए राज्यपाल कप्तान सिंह सोलंकी की नियुक्ति से महज कुछ घंटे के भीतर मुख्यमंत्री हुड्डा ने नियुक्ति पत्र जारी होने का इंतज़ार किए बगैर दो सूचना आयुक्तों और राइट टू सर्विस आयोग के तीन आयुक्तों को खुद ही शपथ दिलाई थी, जबकि ये काम राज्यपाल को करना था। जिन पांच लोगों को शपथ दिलाई गई उनके हुड्डा के करीबी रिटायर्ड नौकरशाह और उनके राजनीतिक सलाहकार की पत्नी शामिल थे।
इस जल्दबाजी की वजह थी आईएएस अफसर प्रदीप कासनी जो उस वक़्त प्रसाशनिक सुधार महकमे में सचिव थे। कासनी ने ये कहते हुए नियुक्ति पत्रों पर हस्ताक्षर करने से इनकार कर दिया था कि जिन दो लोगों को सूचना आयुक्त बनाया जा रहा है वो नियुक्ति प्रक्रिया के दौरान लाभ के पद पर तैनात थे और नियुक्ति से सम्बंधित फाइल में कई जगह काट-छांट की गई है जिससे गड़बड़ी की आशंका नज़र आती है। बहरहाल, इस रुख के लिए हुड्डा सरकार ने उनका फ़ौरन तबादला कर दिया था।
एक एनजीओ की याचिका पर पंजाब-हरियाणा हाई कोर्ट में सुनवाई के दौरान खट्टर सरकार ने जो बयान दिया है वह चौकाने वाला है। प्रसाशनिक सुधार महकमे के मौजूदा सचिव ने हाई कोर्ट को बताया है कि चयन प्रक्रिया में पूरी पारदर्शिता बरती गई और दोनों नियुक्तियां नियम कानून के तहत की गई हैं।
आईएएस अफसर अशोक खेमका के बाद कासनी दूसरे ऐसे नौकरशाह हैं जिनसे सत्ता में आने के बाद बीजेपी ने किनारा कर लिया है। खेमका की ही तरह कासनी के तबादले पर बीजेपी ने विपक्ष में रहते हुए खूब हो हल्ला मचाया था।
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अपने तीन प्रमुख गेंदबाजों को आराम देने के बावजूद दक्षिण अफ्रीका ने चौथे एकदिवसीय अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट मैच में रविवार को ऑस्ट्रेलिया को छह विकेट से हरा दिया.
काइल एबोट की अगुवाई में दक्षिण अफ्रीका के गेंदबाजों ने ऑस्ट्रेलिया को 167 रन पर आउट कर दिया जो सीरीज में उसका न्यूनतम स्कोर है. जवाब में दक्षिण अफ्रीका ने 14 . 3 ओवर बाकी रहते लक्ष्य हासिल कर लिया. दक्षिण अफ्रीका के लिए कप्तान फाफ डु प्लेसी ने 69 रन बनाए.टिप्पणियां
पहले तीन मैच जीतकर सीरीज अपने नाम कर चुके दक्षिण अफ्रीका ने तेज गेंदबाज डेल स्टेन, कागिसो रबाडा और स्पिनर इमरान ताहिर को आराम दिया था. उनकी जगह एबोट और स्पिनर तबरेज शम्सी और आरोन फागिंसो ने ली. (इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
काइल एबोट की अगुवाई में दक्षिण अफ्रीका के गेंदबाजों ने ऑस्ट्रेलिया को 167 रन पर आउट कर दिया जो सीरीज में उसका न्यूनतम स्कोर है. जवाब में दक्षिण अफ्रीका ने 14 . 3 ओवर बाकी रहते लक्ष्य हासिल कर लिया. दक्षिण अफ्रीका के लिए कप्तान फाफ डु प्लेसी ने 69 रन बनाए.टिप्पणियां
पहले तीन मैच जीतकर सीरीज अपने नाम कर चुके दक्षिण अफ्रीका ने तेज गेंदबाज डेल स्टेन, कागिसो रबाडा और स्पिनर इमरान ताहिर को आराम दिया था. उनकी जगह एबोट और स्पिनर तबरेज शम्सी और आरोन फागिंसो ने ली. (इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
पहले तीन मैच जीतकर सीरीज अपने नाम कर चुके दक्षिण अफ्रीका ने तेज गेंदबाज डेल स्टेन, कागिसो रबाडा और स्पिनर इमरान ताहिर को आराम दिया था. उनकी जगह एबोट और स्पिनर तबरेज शम्सी और आरोन फागिंसो ने ली. (इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
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विलासराव दगड़ोजीराव देशमुख महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री थे। ये भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के सदस्य भी हैं। ये महाराष्ट्र के लातूर जिला के हैं।
श्री विलासराव देशमुख को भारत सरकार की पंद्रहवीं लोकसभा के मंत्रीमंडल
में बड़े उद्योग एवं सार्वजनिक उपक्रम में मंत्री बनाया गया था।
जीवन
इनका जन्म २६ मई १९४५ को हुआ था एवं मृत्यु अगस्त १४, २०१२ को चेन्नई के अस्पताल में हुयी.
पुत्र
इनका पुत्र रितेश देशमुख बॉलीवुड (हिन्दी सिनेमा जगत) का एक प्रसिद्ध अभिनेता है।
इस्तीफा
२६ नवम्बर २००८ मुंबई में श्रेणीबद्ध गोलीबारी के बाद इन्होंने धमाकों में अपनी व सरकार की कमियों को मानते हुए अपने पद पर ३ दिसंबर को अपने पद से इस्तीफा दे दिया है, जिसे श्रीमती सोनिया गाँधी ने स्वीकार भि कर लिया है। इसके साथ ही सोनिया ने देशमुख को निर्देश दिया है कि वे राज्यपाल को इस्तीफा सौंप दें.
मुंबई में आतंकी हमलों के बाद जनता की हिफाजत में अक्षम साबित होने का आरोप झेल रहे विलासराव देशमुख की कुर्सी आखिरकार छिन ही गई। कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी को इस्तीफा सौंपने के बाद वे पार्टी के निर्देश का इंतजार कर रहे थे। अब राज्यपाल को इस्तीफा सौंपा जाना महज औपचारिकता ही रह गई है।
गौरतलब है कि मुंबई में आतंकी हमलों के बाद विलासराव देशमुख जब होटल ताज का जायजा ले रहे थे, तो साथ में उनके अभिनेता पुत्र रीतेश देशमुख और फिल्म निर्देशक रामगोपाल वर्मा भी थे। इस घटनाक्रम के बाद उन पर यह आरोप लगा कि आतंकी हमले जैसे गंभीर मसले को भी उन्होंने बेहद हल्के तरीके से लिया।
सन्दर्भ
1945 में जन्मे लोग
२०१२ में निधन
महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री
भारत सरकार के मंत्री
महाराष्ट्र के राजनेता
राज्यसभा सदस्य
भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के राजनीतिज्ञ
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नबाती या नबाताई (अरबी: , अल-अनबात; अंग्रेजी: Nabatean, नैबटीयन) प्राचीन काल में दक्षिणी जोर्डन, सीरिया और लेबनान और अरबी प्रायद्वीप के उत्तरी भाग में बसने वाली एक जाति थी। उन्होंने इस क्षेत्र में व्यापार पर आधारित संस्कृति विकसित की, जिसके केंद्र रेगिस्तान में जगह-जगह पर स्थित नख़लिस्तान (ओएसिस) थे। रोमन साम्राज्य के सम्राट त्राजान (Trajan, ५३ ईसवी - ११७ ईसवी) ने नबाती इलाकों पर आक्रमण करके इन्हें पराजित कर दिया और इनका विलय अपने साम्राज्य में कर लिया। समय के साथ-साथ नबाती पहचान हमेशा के लिए लुप्त हो गई। उनके द्वारा लिखित शिलालेख और निर्मित इमारतों के खंडर कई जगह मिलते हैं, जिनमें सब से मशहूर जोर्डन में स्थित पेत्रा का ऐतिहासिक नगर है।
इन्हें भी देखें
हत्ती लोग
पेत्रा
त्राजान
मादाइन सालेह
नाबातियन साम्राज्य
इस्लाम-पूर्व अरब
अरब इतिहास
मध्य पूर्व की प्राचीन जातियाँ
विलुप्त मानव जातियाँ
सामीती लोग
हिन्दी विकि डीवीडी परियोजना
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एक दिवसीय समारोह की तैयारी में 14 महीने लगे: राज्याभिषेक आयोग की पहली बैठक अप्रैल 1952 में रानी के पति फिलिप, ड्यूक ऑफ एडिनबर्ग की अध्यक्षता में हुई थी। अन्य समितियाँ भी गठित की गईं, जैसे कोरोनेशन संयुक्त समिति और कोरोनेशन कार्यकारी समिति, दोनों की अध्यक्षता ड्यूक ऑफ नोरफोक ने की, जो अर्ल मार्शल के रूप में परंपरा के अनुसार, इस आयोजन की समग्र जिम्मेदारी थी। मार्ग में कई भौतिक तैयारियां और सजावट कार्य मंत्री डेविड एक्लेस की जिम्मेदारी थी। एक्लेस ने अपनी और अर्ल मार्शल की भूमिका का वर्णन किया: "अर्ल मार्शल निर्माता हैं - मैं मंच प्रबंधक हूं..."
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उत्तराखंड में सैलाब का कहर तो गुज़र गया, लेकिन कहर के बाद की टीस लोगों की जीने नहीं दे रही है. कभी अपने ख़ूबसूरत नज़ारों और तीर्थयात्राओं के लिए मशहूर इस सूबे में अब कुछ बचा है, तो वह है मौत, मलबा और मातम...सिसकते उत्तराखंड की तस्वीरें, आपको चौंका देंगी.
देवभूमि उत्तराखंड की भयानक तस्वीर देखने भर से रोंगटे खड़े हो जाते हैं, जिस्म में सिहरन पैदा हो जाती है. इसे देखकर यहां आए कुदरती कहर का गुमान तो होता है, लेकिन कोई चाहकर भी उस तबाही का सही-सही तसव्वुर नहीं कर सकता, क्योंकि आप जितना भी सोचते हैं, यह तबाही कहीं उससे भी ज़्यादा बढ़कर है.
रामबाड़ा
रामबाड़ा वह जगह है, जहां से गुज़रे बगैर श्रद्धालुओं की चार धाम की यात्रा पूरी ही नहीं हो सकती. लेकिन 16 जून की रात इसी रामबाड़े में बादल फटने के बाद जो कुछ हुआ, उसे अल्फ़ाज़ में बयान करना भी नामुमकिन है. केदरनाथ धाम से करीब 7 किलोमीटर पहले इस कस्बे में करीब 90 गेस्ट हाउस, मकान और दुकान हुआ करते थे. लेकिन यहां अब कुछ बचा है, तो वह है सिर्फ़ मलबा और हर तरफ़ पड़ी लाशें.
कुदरत के इस कहर के बाद रामबाड़ा की जो पहली तस्वीर सामने आई, उसे देखना भी मुश्किल है. क्या इंसान और क्या जानवर, मौत के सैलाब ने सबको अपनी आगोश में लेकर जगह-जगह कुछ ऐसा बिखेरा है कि ज़िंदगी का नामो-निशान मिट गया है. रेत-पत्थर और मलबे के साथ-साथ हर तरफ़ बिखरे सामान इस बात की गवाही देते हैं कि कभी यहां भी एक खुशहाल दुनिया आबाद हुआ करती थी. लेकिन अचानक सैलाब ने किसी को संभलने का मौका ही नहीं दिया. कहीं कपड़े, कहीं चप्पल, तो कहीं दूध की कटोरी...
तिलवाड़ा
उत्तराखंड में रुद्रप्रयाग के नज़दीक बसे इस कस्बे के पास अपनी बर्बादी की अलग ही कहानी है. मंदाकिनी नदी में आई बाढ़ ने रातों-रात तिलवाड़ा को कुछ ऐसे उजाड़ा कि यहां तरफ़ तबाही फैली है. क्या स्कूल, क्या मकान और क्या दुकान, सैलाब और पहाड़ों से आए पत्थरों ने सबकुछ जैसे छिन्न-भिन्न कर दिया है. कितने लोग ग़ायब हुए हैं और कितनों की मौत हुई है, ये अब तक खुद तिलवाड़ा के बाशिंदों तक को सही-सही पता नहीं है.
मंदाकिनी नदी के किनारे बना एक पेट्रोल पंप मिट्टी की कटाई के चलते अब हवा में झूल रहा है. वहीं गांव का हाई स्कूल खंडहर में तब्दील हो गया है. मजबूरी में अब स्कूल को दूसरी जगह शिफ्ट करना पड़ा है. घरों की हालत ऐसी है कि उसे बयान करना भी मुश्किल है. लेकिन सबसे बुरी हालत है यहां ज़िंदा बचे उन लोगों की, जिनके लिए अब ज़िंदा रहना भी एक चुनौती बन गया है. सवाल वही है कि तमाम बर्बादी के बावजूद लोग आख़िर अपनी मिट्टी, अपने खेत और अपना घर-बार छोड़कर आख़िर जाएं भी तो कहां जाएं?
श्रीनगर
उत्तराखंड का यह कस्बा अब अचानक ज़मीन से कई फीट नीचे चला गया है. यूं कहें कि कस्बे में सैलाब के साथ आए मलबे या मिट्टी ने जगह कुछ ऐसी घेरी है कि यहां बने तमाम मकान-दुकान और दूसरी चीज़ें अब कई फीट नीचे दब गई हैं.
श्रीनगर में बने एसएसबी यानी सीमा सुरक्षा बल का ट्रेनिंग कैंप भी इस हादसे का बुरी तरह शिकार हुआ है. एक इमारत की छत पर लगा सोलर सिस्टम पूरी तरह कीचड़ में दब चुका है.
उत्तरकाशी
उत्तराखंड के श्रीनगर से दूर उत्तरकाशी का नजारा भी कुछ वैसा ही है. ये दोनों जगह एक-दूसरे से तकरीबन 132 किलोमीटर दूर होने के बावजूद तबाही की मार दोनों ही ठिकानों पर तकरीबन एक सी है. रास्ते धुल गए हैं, बस्तियों और आबादी का नामोनिशान मिट गया है. उत्तरकाशी के मोहल्ले में सैलाब का असर कैसा था, यह समझने के लिए यहां के मकानों और गाड़ियों को देखा जा सकता है. कुछ लोग अब यहां बैठकर हाथों से अपनी गाड़ियों में भरी मिट्टी को निकालने की कोशिश कर रहे हैं. लेकिन इस तरह यह काम वो कब तक पूरा कर पाएंगे, ये कोई नहीं जानता. सच तो यह है कि उत्तरकाशी का यह पूरा का पूरा शहर ही मलबे के ढेर में समा चुका है.
गोविंदघाट
तकरीबन यही हालत गोविंदघाट इलाके की है. यहां भी मकान, दुकान, गुरुद्वारा, होटल सबकुछ बर्बाद हो चुका है. गोविंदघाट गुरुद्वारे की तस्वीरों को देखकर समझा जा सकता है कि यहां सैलाब का असर कैसा रहा होगा. बाढ़ के वक्त जो जब जिस हाल में रहा, उसे जान बचाने के लिए उसी हाल में भागना पड़ा. जो नहीं भाग सके, वो आसमान से उतरी मौत का शिकार बन गए. गुरुद्वारे के आस-पास बिखरे लोगों के सामान, जूते-चप्पल, प्रसाद और किताबें बता रही हैं कि इस जगह अलकनंदा नदी ने अपना गुस्सा किस कदर उतारा.
सीतापुर गांव
चंपावत तहसील का यह गांव सैलाब की सबसे ज़्यादा मार झेलनेवाले इलाकों में से एक है. गांव में सड़कों की जगह बड़े-बड़े पत्थरों की ढेर ने जगह ले ली है. मकान टूटकर बिखर चुके हैं. जो बचे हैं, वो भी रहने लायक नहीं हैं. कहीं सामान बिखरे पड़े हैं, कहीं मिट्टी के नीचे कार दबी है, तो कहीं किसी श्रद्धालु के हाथ में रही गंगाजल की बोतल यूं ही पड़ी है. इन चीजों के मालिक कौन हैं, कोई नहीं जानता. हालत ऐसी कि देखकर खुद पत्थर का दिल भी पसीज जाए, फिर इंसान भला अपने आंसुओं को कैसे रोक सकता है?
उदरी गांव
सीतापुर की तरह ही उदरी गांव भी अपनी किस्मत की बदहाली पर आठ-आठ आंसू रो रहा है. पूरा गांव तबाह हो चुका है और लोगों के लिए रहने की जगह नहीं बची है.
बिरही
ठीक इसी तरह बिरही में भी नदी की धार ने अपने रास्ते में आई तमाम चीज़ों को कुछ ऐसे उखाड़ फेंका है, जैसे कोई तूफ़ान अपने रास्ते में आई चीज़ों को उड़ा ले जाता है. कभी यहां गढ़वाल मंडल का एक होटल हुआ करता था. लेकिन अब यहां एक टूटी दीवार के सिवा और कुछ भी नहीं. लेकिन यह उत्तराखंड की तबाही का अंत नहीं है, बल्कि तबाही और बर्बादी की कहानियां अभी और भी हैं.
एक इंच दूर खड़ी मौत कैसी होती है? यह जानने के लिए उत्तराखंड में एक नहीं, सैकड़ों किस्से मौजूद हैं. लेकिन इन तमाम किस्सों के बावजूद इस पहाड़ी सूबे में ज़िंदगी एक बार फिर से करवट ले रही है. कहीं नक्शों से गायब रास्ते फिर से उकेरे जा रहे हैं, तो कहीं आशियानों के टूटे तिनके जोड़े जा रहे हैं.
गंगोत्री
गंगोत्री के पास पेश आए मंज़र का तसव्वुर करने के लिए एक टैक्सी को देखना ही काफ़ी है. लेकिन खुशकिस्मती से इस बदकिस्मत गाड़ी पर पत्थर उसके पिछले हिस्से पर नहीं, बल्कि बॉनट पर गिरा, जिससे गाड़ी तो ख़ैर तबाह हो गई, लेकिन इस गाड़ी में सवार सभी के सभी लोग बाल-बाल बच गए. कहते हैं ना, ज़िंदगी ज़िंदादिली का नाम है, इसीलिए इन तमाम दुश्वारियों के बावजूद उत्तराखंड में लोग फिर से अपने पैरों पर खड़े होने की कोशिश कर रहे हैं.
जोशीमठ
कहीं फिर से पहाड़ों का सीना चीर कर रास्ते बनाए जा रहे हैं, तो कहीं नदी की धारों के बीच नई उम्र के लोग क्रिकेट में ज़िंदगी की उम्मीद तलाश रहे हैं. दुआ कीजिए कि इंसानों की यह कोशिश फिर से रंग लाए और उत्तराखंड फिर से खड़ा हो जाए.
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शतरंज का इतिहास कम से कम १५०० वर्ष पुराना है। इस खेल का सबसे पुराना रूप छठवीं शदी में भारत में जन्मा। भारत से यह फारस (आधुनिक ईरान) पहुँचा। जब अरबों ने फारस को जीता तब उनके द्वारा यह दक्षिणी यूरोप में पहुँचा। यूरोप में यह खेल अपने वर्तमान स्वरूप में पन्द्रहवीं शताब्दी में आरम्भ हुआ।
बाहरी कड़ियाँ
Origin and history of Chess, Xiangqi, Shogi and more
TIME: History of Chess, by Viswanathan Anand
Chess. (2007). In Encyclopedia Britannica. Retrieved July 30, 2007, from Encyclopedia Britannica Online
"Chess," Microsoft Encarta Online Encyclopedia 2007( 2009-10-31)
Initiative group Koenigstein
Goddess Chess Chessays
Chess for all ages
खेल
इतिहास
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जम्मू से बुधवार सुबह पवित्र अमरनाथ यात्रा के लिए लगभग 1,300 तीर्थयात्रियों का पहला जत्था रवाना हो गया पर जैसी ही यह जत्था उधमपुर पहुंचा, इसे वहीं पर रोक दिया गया. खबर है कि इस यात्रा को बुधवार शाम में फिर हरी झंडी दी जा सकती है. कश्मीर में व्यापक हिंसा को देखते हुए यात्रा रोक दी गई है.
इस जत्थे में 233 महिलाएं और 32 बच्चे हैं. तीर्थयात्रियों के पहले जत्थे को राज्य के पर्यटन मंत्री नवांग रिग्जिन जोरा ने रवाना किया था. इस मौके पर उन्होंने कहा कि तीर्थयात्रियों के लिए सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए गए हैं.
जम्मू से गुफा तक के रास्ते में भारी संख्या में पुलिस और अर्धसैनिक बल तैनात किए गए हैं. कश्मीर में तनाव और सुरक्षा चिंताओं के बावजूद तीर्थयात्री अपनी आस्था को लेकर प्रतिबद्ध हैं. एक तीर्थयात्री सतीश मंगोत्रा ने बताया कि यह आस्था का विषय है. कश्मीर में तनाव है सिर्फ इस वजह से मैं इस यात्रा को नहीं टाल सकता. मुझे पूरा विश्वास है कि बाबा भोले शंकर हम सभी की रक्षा करेंगे.
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बाहुबली 2 ने बॉक्स-ऑफिस पर कमाई के सारे रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं. फिल्म ने वर्ल्ड वाइड 1500 करोड़ रुपये से ज्यादा की कमाई की है. फिल्म के हिंदी वर्जन ने 500 करोड़ रुपये का आंकड़ा पार कर लिया है.
बता दें कि फिल्म के हिंदी वर्जन को करण जौहर की धर्मा प्रोडक्शन ने प्रोड्यूस किया था. खबरों की मानें तो करण फिल्म को खरीद कर इसे प्रोड्यूस करना चाहते थे लेकिन उन्होंने इसके लिए जितनी फीस मांगी थी, उसके लिए
बाहुबली 2
के मेकर्स तैयार नहीं थे. इसलिए करण ने फिल्म के हिंदी वर्जन को ही प्रोड्यूस किया और इसके लिए उन्होंने हिंदी वर्जन से होने वाली कमाई का 10% हिस्सा मांगा है. अब फिल्म ने 500 करोड़ रुपये का कलेक्शन किया है तो इस हिसाब से करण जौहर को 25 करोड़ रुपये मिलेंगे.
और यह रकम
बाहुबली-2
की कलेक्शन के हिसाब से बढ़ती जाएगी. बता दें कि बाहुबली भारत की पहली फिल्म बन गई है जिसने दुनिया भर में 1500 करोड़ की कमाई की है.
2017 में सबसे ज्यादा प्रॉफिट
2017 में
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सबसे ज्यादा मुनाफा कमाने वाली फिल्म है. फिल्म के हिंदी वर्जन ने अभी तक 464 करोड़ की कमाई की है. इसी के साथ फिल्म का मुनाफा 374 प्रतिशत का है. बता दें कि हिंदी में इतने शानदार आंकड़े किसी दूसरी डब फिल्म के अभी तक नहीं रहे हैं.
फिल्मीबीट की एक खबर के अनुसार, 2017 में अभी तक बस चार फिल्मों ने प्रॉफिट कमाया है. इस लिस्ट में
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के अलावा जॉली एलएलबी 2, बद्रीनाथ की दुल्हनिया और काबिल शामिल हैं. फिल्म ट्रेड रिपोर्ट्स के अनुसार, जॉली एलएलबी ने 160 प्रतिशत, बद्रीनाथ ने 159 प्रतिशत और काबिल ने 153 प्रतिशत प्रॉफिट कमाया है.
फिर चलेगा बाहुबली और देवसेना की जोड़ी का जादू, इस फिल्म में आएंगे नजर
आपको बता दें कि ये फिल्म वर्ल्डवाइड करीब 9000 स्क्रीन्स पर रिलीज हुई है और ये फिल्म मूल रूप से तेलुगू में बनी है और हिंदी सहित 6 भाषाओं में रिलीज हुई है. इस फिल्म में प्रभास, राणा दग्गुबत्ती, अनुष्का शेट्टी, राम्या कृष्णन, नासिर और सत्यराज मुख्य भूमिका में हैं.
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दिल्ली में अरविंद केजरीवाल के नेतृत्व वाली आम आदमी पार्टी सरकार भ्रष्टाचार को खत्म करने की कसम खाकर सत्ता में आई थी लेकिन अब उसी पार्टी के नेता पर भ्रष्टाचार और भाई-भतीजावाद को बढ़ावा देने का आरोप लग रहा है. ये गंभीर आरोप अरविंद केजरीवाल की सगी साली के पति सुरेंदर कुमार बंसल पर लगे हैं.
रोड एंटी करप्शन ऑर्गनाइजेशन नाम के एनजीओ ने आरोप लगाया है कि केजरीवाल ने अपने साढ़ू सुरेंदर कुमार बंसल को 2014 से 2016 के बीच कई निर्माण कार्यों का सरकारी काम दिया. जिनमें कई डमी कंपनी बनाकर करोड़ो का काम दिखाया गया और फिर कागजों पर ही काम दिखलाकर पैसे हड़प लिए गए.
एनजीओ के संस्थापक राहुल शर्मा और एनजीओ से जुड़े विप्लव अवस्थी का कहना है अपने रिश्तेदार को फायदा दिलाने के लिए केजरीवाल ने यह सब किया. उनका कहना है कि हमारी ओर से 150 से ज्यादा आरटीआई डाली गईं लेकिन संबंधित विभागों से कोई जानकारी नहीं दी गई.
केजरीवाल के साढ़ू ने रेणू कंस्ट्रक्शन के नाम से कंपनी बनाई और फिर महादेव इम्पेक्स से सामान खरीदा हुआ दिखाया. जबकि महादेव इम्पेक्स ने सेल टैक्स विभाग को दी जानकारी में दिखाया है कि कंपनी ने ना तो कोई कारोबार किया, ना ही किसी से माल लिया और ना ही किसी को आगे माल बेचा है.यानी नाले बनाने से लेकर कंस्ट्रक्शन तक का काम सिर्फ कागजों पर हुआ और पैसा सरकार के फंड से दिया गया. एनजीओ ने केजरीवाल सरकार पर नियमों में गड़बड़ी का भी आरोप लगाया है.
एनजीओ का कहना है कि उनके पास करीब 8 करोड़ के घोटाले हैं जो सुरेंदर कुमार बंसल के कंपनी के नाम हैं. हमने ACB को भी मामले से जुड़ी शिकायत सौंप दी है. अरविंद केजरीवाल को इन आरोपों की जानकारी के जवाब में एनजीओ ने कहा कि जिन्होंने खुद अपने रिश्तेदारों को रेवड़ी बांटी हों उनसे किसी निष्पक्ष जांच और इंसाफ की उम्मीद कैसे की जा सकती है.
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चीन की बड़ी टेक कंपनी LeTV ने ग्लोबल लॉन्च के लिए अपना नाम बदल कर LeEco कर लिया है. कंपनी ने भारत में अपना पहला फ्लैगशिप स्मार्टफोन LeMax और बजट स्मार्टफोन Le 1S लॉन्च किया है.
हाई एंड फोन LeMax
की कीम 32,999 रुपये रखी गई है जबकि LeS1 को 10,999 रुपये में बेचा जाएगा. कंपनी ने इसे बेचने के लिए फ्लिपकार्ट से करार किया है. इसके लिए रजिस्ट्रेशन बुधवार से शुरू होगा. दोनों स्मार्टफोन की खासियत इनकी फुल मेटल बॉडी और फिंगरप्रिंट स्कैनर है.
6.3 इंच की क्वाड एचडी स्क्रीन वाले इस फ्लैगशिप स्मार्टफोन में क्वालकॉम स्नैपड्रैगन 810 चिपसेट के साथ 4 जीबी रैम दिया गया है. इसकी इंटरनल मेमोरी 64GB की है.
फोटोग्राफी के लिए इसमें ड्यूल एलईडी फ्लैश और ऑप्टिकल इमेज स्टेब्लाइजेशन फीचर के साथ 21 मेगापिक्सल का रियर कैमरा दिया गया है. सेल्फी के लिए इसमें 4 मेगापिक्सल (अल्ट्रापिक्सल) कैमरा दिया गया है.
यह फोन एंड्रॉयड 5.0.2 लॉलीपॉप पर बने कंपनी के कस्टम यूआई पर चलता है और इसमें 4G LTE का सपोर्ट व 3,400mAh की बैट्री दी गई है. इस फोन का एक सफायर कलर वैरिएंट भी बेचा जाएगा जिसकी इंटरनल मेमोरी 128GB की होगी. वैरिएंट की कीमत 69,999 रुपये होगी. इस फोन को 16 फरवरी से खरीदा जा सकेगा.
1S में दिया गया है MediaTek Helio X10 प्रोसेसर
मिड रेंज स्मार्टफोन
Le 1S में MediaTek Helio X10 प्रोसेसर के साथ 5.5 इंच का फुल एचडी डिस्प्ले दिया गया है. इस ड्यूल सिम फोन में 3GB रैम और 32GB की इंटरनल मेमोरी दी गई है. फोटोग्राफी के लिए इसमें 13 मेगापिक्सल रियर और 5 मेगापिक्सल फ्रंट कैमरे लगे हैं. यह भी कंपनी के कस्टम यूआई पर ही चलेगा जिसे एंड्रॉयड 5.1.1 लॉलीपॉप पर बनाया गया है.
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स्वामी विवेकानंद की जयंती मनाने के लिए हर साल देश के सबसे बड़े युवा समारोह 'राष्ट्रीय युवा महोत्सव' का आयोजन किया जाता है. अगले वर्ष 12 जनवरी से शुरू होने वाले इस महोत्सव का आयोजन इस बार छत्तीसगढ़ स्थित रायपुर में होगा. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इसके लिए युवाओं के विचार आमंत्रित किए हैं.
मोदी ने रविवार को साल के अपने अंतिम
'मन की बात'
कार्यक्रम में कहा, '12 जनवरी को हम स्वामी विवेकानंद की जयंती मनाएंगे. 1995 से इसी दिन राष्ट्रीय युवा महोत्सव का आयोजन किया जा रहा है.'
मोदी ने कहा कि इस वर्ष इसका थीम 'विकास, कौशल और सद्भाव पर भारतीय युवा' है. प्रधानमंत्री ने समारोह के लिए युवाओं के विचार आमंत्रित करते हुए कहा, "सभी क्षेत्रों के युवाओं की भागीदारी के कारण समारोह में एक लघु भारत का दर्शन होगा. क्या आप युवा महोत्सव के लिए अपने विचार भेजेंगे?"
The 'Narendra Modi Mobile App' has become a rich repository of positive stories & anecdotes. Several people are contributing.
#MannKiBaat
— Narendra Modi (@narendramodi)
December 27, 2015
मोदी ने युवाओं को अपने विचार 'नरेंद्र मोदी मोबाइल एप' पर भेजने का आग्रह किया. उन्होंने कहा, 'आपके इन विचारों के माध्यम से मैं आपके नजरिए को समझना चाहता हूं. सरकार को सुझाव दिया जाएगा कि राष्ट्रीय युवा महोत्सव में ये विचार शामिल किए जाएं.'
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अमेरिका ने पाकिस्तान में सक्रिय दो आतंकियों के सिर पर एक करोड़ डालर यानी करीब 50 करोड़ रुपये का इनाम रखा है. ये आतंकी हैं, बैतुल्ला महसूद और सिराजुद्दीन हक्कानी. महसूद तहरीक-ए-तालिबान का मुखिया है, जबकि हक्कानी को पाकिस्तान की पूर्व प्रधानमंत्री बेनजीर भुट्टो की हत्या का मास्टरमाइंड बताया जाता है.
अमेरिका ने अल कायदा आतंकी अबु याहिया अल-लिबी के बारे में जानकारी देने वाले को भी दस लाख डालर यानी करीब पांच करोड़ रुपये देने का ऐलान किया है. ये सभी आतंकी पाकिस्तान या अफगानिस्तान में छिपे हैं.
अमेरिकी विदेश विभाग के एक प्रवक्ता ने बताया कि पाकिस्तान में तालिबान की गतिविधियां चलाने वाले बैतुल्ला के बारे में जानकारी देने वाले को 25 करोड़ रुपये और हक्कानी के बारे में बताने वाले को भी इतनी ही रकम दी जाएगी.
बैतुल्ला पाकिस्तान के दक्षिणी वजीरिस्तान इलाके में अल कायदा का मिशन संचालित करने वाला प्रमुख शख्स है. जनवरी, 2007 में पाकिस्तान के मैरिएट होटल पर हुआ आत्मघाती हमला भी बैतुल्ला के गुर्गो की ही कारिस्तानी माना जाता है. इस हमले में कई अमेरिकी लोगों की भी मौत हुई थी.
हक्कानी पिछले साल 14 जनवरी को काबुल के सेरेना होटल पर हुए हमले को अंजाम देने की बात मान चुका है। इस हमले में एक अमेरिकी नागरिक सहित छह लोग मारे गए थे.
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इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल)
और विवादों का चोली दामन का साथ रहा है. आईपीएल के पिछले सीजन में प्रीति जिंटा ने एक यॉट पर किंग्स इलेवन पंजाब की पूरी टीम को पार्टी दी थी, चेन्नई सुपरकिंग्स के एक खिलाड़ी के कमरे में एक रहस्यमयी महिला ने पूरी रात गुजारी थी और इसके अलावा शाहरुख खान के एक दोस्त ने बिना इजाजत कोलकाता नाइट राइडर्स के खिलाड़ियों को डिनर पार्टी दी थी. बीसीसीआई की एंटी करप्शन सिक्युरिटी यूनिट (ACSU) इन सभी मुद्दों पर जांच कर रही है.
आईपीएल-8
में फ्रेंचाइजी और क्रिकेटरों ने ACSU के कई नियमों को तोड़ा था. आईपीएल-6 में स्पॉट फिक्सिंग कांड ने पूरे क्रिकेट जगत को स्तब्ध कर दिया था ऐसे में इस तरह की घटनाएं काफी गंभीर मानी जा रही हैं. ACSU चीफ रवि सवानी ने बीसीसीआई को एक चिट्ठी लिखी थी जिसमें इसी तरह की सभी घटनाओं का जिक्र किया गया है. चिट्ठी में बताया गया है कि यह सबकुछ 2014 में 16 अप्रैल से 1 जून के बीच हुआ. यह वही समय है जब सुप्रीम कोर्ट में आईपीएल करप्शन मामलों की सुनवाई चल रही थी.
अंग्रेजी अखबार इंडियन एक्सप्रेस के मुताबिक 30 अप्रैल 2014 को प्रीति जिंटा ने मुंबई कोस्ट से करीब 2 किमी की दूरी पर एक यैच में पूरी किंग्स इलेवन पंजाब की टीम को पार्टी दी थी. इस पार्टी में कोई बाहरी गेस्ट नहीं था बस से एक प्रीति जिंटा की करीबी दोस्त ने इसमें शिरकत की थी. आईसीसी ACSU इस मामले में जांच कर रही है कि इसका कनेक्शन कहीं मैच फिक्सिंग से तो नहीं है.
8 मई 2014 को शाहरुख खान के एक बिजनेस पार्टनर ने पूरी कोलकाता नाइट राइडर्स टीम को डिनर पार्टी में बुलाया. इस पार्टी में पार्टी के होस्ट के परिवारवाले, दोस्त और खुद किंग खान भी मौजूद थे.
9 अप्रैल 2014 को दिल्ली के जे डब्ल्यू मैरियट एयरोसिटी होटल में दिल्ली डेयरडेविल्स के एक स्पॉन्सर ने डिनर पार्टी दी थी जिसमें करीब 100 बाहरी गेस्ट मौजूद थे. इस पार्टी के बारे में एसीयू को कोई जानकारी नहीं दी गई थी ना ही पार्टी में पहुंचे गेस्ट की लिस्ट एसीयू से शेयर की गई.
8 मई 2014 को एक महिला (जिसका सीएसके के किसी खिलाड़ी से कोई संबंध नहीं था) मुंबई के आईटीसी ग्रैंड मौर्या होटल पहुंची. यह महिला सीएसके के एक खिलाड़ी के कमरे में रात में 9:50 पर गई और वहां से अगली सुबह 6:05 पर निकली. जब खिलाड़ी से इस बारे में सवाल किया गया तो उसने उसे अपनी करीबी दोस्त बताया.
9 मई को सीएसके टीम के एक और खिलाड़ी के कमरे में एक अन्य महिला रात में 10:10 पर घुसी और अगली सुबह 7:30 पर वहां से गई. जब खिलाड़ी से इसके बारे में पूछा गया तो उसने कहा कि महिला उसकी करीबी दोस्त है और दोनों जल्द ही शादी करने वाले हैं.
पूछताछ और जांच में पता चला कि यह महिला इससे पहले श्रीसंत समेत आईपीएल के अन्य वरिष्ठ खिलाड़ियों से भी मिल चुकी है. इस महिला को 2013 में स्टेडियम में भी देखा गया था जहां वो रॉयल चैलेंजर्स बैंगलोर की टीम को चीयर करती नजर आई. ई-मेल में इस तरह की अन्य घटनाओं का भी जिक्र किया गया है.
बीसीसीआई की ACSU ने पिछले सीजन में फ्रेंचाइजी और खिलाड़ियों को चेताया था कि कोई पत्नी या ब्लड रिलेशन के अलावा कोई भी महिला किसी खिलाड़ी के कमरे में नहीं जा सकती हैं. बावजूद इसके इस तरह के मामले सामने आए.
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दिल्ली की एक अदालत ने 21 वर्षीय एक युवती से असभ्य आचरण करने के आरोप में एक युवक को एक साल जेल की सजा सुनाई है. पीडि़ता पत्रकारिता में स्नातक थी और एक गैर सरकारी संगठन के साथ मिलकर काम कर रही थी.
अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश योगेश खन्ना ने उत्तर प्रदेश निवासी अभियुक्त विनय कुमार को एक साल की जेल की सजा सुनाई, जो एक महिला के अपहरण, हमले और उसकी शालीनता को अपमानित करने की मंशा वाली हरकतें करने के मामले में सुनवाई का सामना कर रहा था.
अदालत ने हालांकि 25 वर्षीय युवक विनय को अपहरण के आरोपों से इस आधार पर बरी कर दिया कि इस बात के कोई सबूत नहीं हैं कि उसने जबरन उसके अपहरण का प्रयास किया. विनय को युवती की शिकायत के आधार पर छह फरवरी 2013 को गिरफ्तार किया गया था.
शिकायत में आरोप लगाया गया था कि जब वह अपने कॉलेज के समीप से गुजर रही थी तो युवक ने उस पर हमले का प्रयास किया और कुछ नागवार हरकतें भी कीं. शिकायत में कहा गया है, मैंने अपने कॉलेज के बाहर फुटपाथ के समीप एक कार खड़ी देखी, जिसका बायां दरवाजा खुला हुआ था. ड्राइवर के पास वाली सीट पर एक युवक बैठा हुआ था और वह कार के बांए दरवाजे को बार बार बंद कर रहा था और खोल रहा था.
युवती ने अपनी लिखित शिकायत में कहा है कि जब मैं फुटपाथ पर जा रही थी और उसके समीप पहुंची तो देखा कि युवक ने अपनी पैंट की जिप खोल रखी थी और मुझे कार के भीतर आने को कह रहा था. वह मेरे सामने आया और यहां तक कि मुझे कार के भीतर खींचने का प्रयास किया.
विनय ने सुनवाई के दौरान खुद के निर्दोष होने का दावा किया और मामले से बरी किए जाने की अपील की. लेकिन दोषी ठहराए जाने के बाद उसने इस आधार पर नरमी बरते जाने की मांग की कि उसे अपनी पत्नी और छोटे बच्चे की देखभाल करनी है.
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225 सदस्यीय कर्नाटक विधानसभा के लिए 224 सीटों पर एक ही चरण में मतदान 12 मई को होगा. इस चुनाव के लिए बीजेपी और कांग्रेस ने अभी से दमखम लगाना शुरू कर दिया है. भले ही कांग्रेस और बीजेपी दोनों मुख्य पार्टिया हिंदूत्व एजेंडे के साथ आगे बढ़ रही हो, लेकिन 'आजतक' के ओपिनियन पोल में दूसरे मुद्दे ही छाए रहे.
आगामी चुनावों से पहले 'कर्नाटक का किंग कौन?' जानने के लिए देश का सबसे बड़ा न्यूज चैनल 'आजतक' लेकर आया है सबसे बड़ा ओपिनियन पोल. किसकी बनेगी सरकार और कौन बैठेगा विपक्ष समेत जानें कई अहम राजनीतिक सवालों के जवाब.
'आजतक' के
ओपिनियन पोल
के अनुसार कर्नाटक के लोगों के लिए इस चुनाव में
सबसे बड़ा मुद्दा बेरोजगारी
है. सबसे ज्यादा 22 प्रतिशत लोगों ने बेरोजगारी को सबसे बड़ा मुद्दा बताया.
वहीं महंगाई यानी प्राइज राइज भी लोगों के लिए बड़ा मुद्दा रहा. दूसरे नंबर पर 18 प्रतिशत लोगों ने महंगाई को बड़ा मुद्दा बताया. पूरे देश की तरह कर्नाटक की जनता भी भ्रष्टाचार से परेशान है. यही वजह है कि 14 प्रतिशत लोगों ने राज्य में भ्रष्टाचार को बड़ा मुद्दा बताया.
वहीं पानी के लिए कर्नाटक और तमिलनाडु के बीच सुप्रीम कोर्ट तक जंग चली है. ऐसे में 13 प्रतिशत लोगों का मानना है कि पीने के पानी का मु्द्दा भी चुनाव का सबसे बड़ा मुद्दा है.
लिंगायत को अलग धर्म दर्जा देने के सिद्दारमैया सरकार के फैसले से चुनाव पर क्या प्रभाव पड़ेगा यह तो वक्त बताएगा. हालांकि 5 प्रतिशत लोगों के लिए लिंगायत को अलग धर्म का दर्जा देना एक बड़ा मुद्दा है.
वहीं कावेरी और महादेयी अंतर राज्यीय जल विवाद भी 4 प्रतिशत लोगों के लिए बड़ा मुद्दा है. वहीं 4 प्रतिशत लोगों किसानों की समस्या को चुनाव के लिए बड़ा मुद्दा मानते हैं.
कर्नाटक की जनता गौरी लंकेश की हत्या नहीं भूली है. 3 प्रतिशत लोगों ने लंकेश के इंसाफ को भी एक बड़ा मुद्दा माना है. वहीं सिंचाई के लिए पानी की कमी भी 2 प्रतिशत लोगों ने चुनाव में बड़ा मुद्दा माना है. वहीं 4 प्रतिशत लोगों का मानना है कि ऊपर के सारे मुद्दे ही बड़े हैं और चुनाव इन सब मुद्दों पर होगा. वहीं 5 प्रतिशत लोग ऐसे रहे जो अपनी राय नहीं बना पाए.
आपको बता दें कि कर्नाटक विधानसभा चुनाव के लिए 15 मई को वोटों की गिनती की जाएगी. चुनाव आयोग के मुताबिक 17 अप्रैल से 24 अप्रैल तक नामांकन भरे जाएंगे. इसके बाद 25 अप्रैल को नामांकन पत्रों की जांच की जाएगी. वहीं 27 अप्रैल तक उम्मीदवार अपना नाम वापस ले सकेंगे.
इस वजह से उम्मीदवार को वोट करेंगे लोग
लोगों से ओपिनियन पोल पर पूछा गया कि वह किस वजह से अपने क्षेत्र के एमएलए उम्मीदवारों को वोट करेंगे तो सबसे ज्यादा 22 प्रतिशत लोगों ने उम्मीदवार की प्रोफाइल को सबसे बड़ी वजह माना.
वहीं उम्मीदवार के पुराने कामकाज को 18 प्रतिशत लोग तवज्जो देंगे. 17 प्रतिशत लोग उम्मीदवार की राजनीतिक पार्टी और राजनीतिक झुकाव को देखकर वोट करेंगे.
उम्मीदवार शिक्षा 11 प्रतिशत लोगों को वोट करने के लिए प्रभावित करेगी. साथ 7 प्रतिशत लोग उम्मीदवार का आर्थिक बैकग्राउंड देखकर वोट करेंगे. ओपिनियन पोल के अनुसार 6 प्रतिशत लोगों के लिए उम्मीदवार का धर्म भी मायने रखेगा. 5 प्रतिशत लोगों के लिए जाति मायने रखती है. वहीं 5 प्रतिशत लोग उम्मीदवार की सोच विचारधारा को देखकर वोट करेंगे. साथ 3 प्रतिशत लोग इस बात पर वोट करेंगे कि उम्मीदवार मुख्यमंत्री पद का उम्मीदवार है या नहीं. 1 प्रतिशत लोगों के लिए स्थानिय उम्मीदवार वोट करने के लिए मायने रखेगा. 3 प्रतिशत लोग राय नहीं बना सकें.
चुनाव आयोग के मुताबिक कर्नाटक में 4 करोड़ 96 लाख वोटर हैं. 97 फीसदी मतदाताओं के फोटो पहचान पत्र जारी कर दिए गए हैं. इस बार कर्नाटक में 56 हजार पोलिंग बूथ बनाए जाएंगे. 28 मई से पहले चुनाव की सभी प्रक्रियाएं पूरी कर ली जाएंगी.
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सेंट लियो उसैन बोल्ट, OJ, CD, OLY (, (जन्म 21 अगस्त 1986), जमैका के अंतर्राष्ट्रीय धावक और आठ बार के ओलंपिक स्वर्ण पदक विजेता हैं। वे 100 मीटर और 200 मीटर और अपनी टीम के साथियों के साथ 4x100 मीटर रिले दौड़ के विश्व रिकार्डधारी हैं। इन सभी तीन दौड़ों का ओलंपिक रिकॉर्ड भी बोल्ट के नाम है। 1984 में कार्ल लुईस के बाद 2008 ग्रीष्मकालीन ओलम्पिक में बोल्ट एक ओलंपिक में तीनों दौड़ जीतने वाले और एक ओलंपिक में ही तीनों दौड़ों में विश्व रिकॉर्ड बनाने वाले पहले व्यक्ति बन गये। इसके साथ ही 2008 में वे 100 और 200 मीटर स्पर्धा में ओलंपिक खिताब पाने वाले भी पहले व्यक्ति बने।
2002 के विश्व जूनियर चैंपियनशिप में 200 मीटर दौड़ में स्वर्ण पदक जीतकर बोल्ट ने अलग पहचान बनाई और इससे वे प्रतियोगिता के सबसे कम उम्र के स्वर्ण पदकधारी बन गये। 2004 के CARIFTA खेलों में 19.93 सेकंड समय के साथ 20 सेकेंड श्रेणी में दौड़कर वे पहले जूनियर धावक बन गये और उन्होंने रॉय मार्टिन के एक सेकेंड के दो दहाई समय में बने विश्व जूनियर रिकार्ड को तोड़ दिया। वे 2004 में पेशेवर बन गये, पर चोटों के कारण पहले 2 सीजन की ज्यादातर स्पर्धाओं में नहीं खेल पाये, लेकिन वह ओलंपिक में 2004 के ग्रीष्मकालीन ओलंपिक की स्पर्धाएं पूरी कीं. 2007 में, उन्होंने 200 मीटर जमैकन राष्ट्रीय रिकार्डधारी डॉन क्वैरिज को 19.75 सेंकेंड समय लेकर हराया. मई 2008 में, बोल्ट ने 9.72 सेकेंड के समय के साथ 100 स्पर्धा में विश्व रिकॉर्ड बनाया। 2008 के बीजिंग ग्रीष्मकालीन ओलंपिक में 100 मीटर और 200 मीटर दोनों स्पर्धाओं में विश्व रिकॉर्ड कायम किया: 100 मीटर में समय 9.69 था और इस तरह उन्होंने 9.72 समय लेकर अपना ही रिकार्ड तोड़ा और 200 मीटर स्पर्धा में उन्होंने 19.30 सेकेंड लेकर 1996 के अटलांटा ग्रीष्मकालीन ओलंपिक में माइकल जॉनसन का 19.32 सकेड का रिकॉर्ड तोड़ दिया। अगस्त 2009 में बीजिंग ओलंपिक के एक साल बाद, 2009 के विश्व चैंपियनशिप में 100 मीटर और 200 मीटर स्पर्धाओं के अपने ही विश्व रिकॉर्ड को क्रमश: 9.58 और 19.19 समय के साथ कम कर दिया बीजिंग ओलंपिक के एक साल बाद, 2009 के विश्व चैंपियनशिप में 100 मीटर और 200 मीटर स्पर्धाओं के अपने ही विश्व रिकॉर्ड को क्रमश: 9.58 और 19.19 समय के साथ कम कर दिया. 100 मीटर में उनका रिकार्ड तोड़ने वाला अंतर डिजिटल समय माप की शुरुआत के बाद से उच्चतम है।
दौड़ में उनकी उपलब्धियों के कारण मीडिया की ओर से उन्हें "लाइटनिंग बोल्ट" का उपनाम मिला।
प्रारंभिक वर्ष
बोल्ट जमैका में एक छोटे शहर ट्रेलानी के शेरवुड कंटेंट में 21 अगस्त 1986 में जन्मे और अपने माता-पिता जेनिफर और वेलेस्ली बोल्ट, अपने भाई सडीकी और बहन शेरिना के साथ बड़े हुए. उसके माता-पिता इलाके के ग्रामीण क्षेत्र में एक किराने की दुकान चलाते थे और बोल्ट ने अपना समय अपने भाई के साथ गली में क्रिकेट और फुटबॉल खेलकर बिताया. बाद में उन्होंने बताया भी"जब मैं छोटा था, तो मैं सचमुच खेल के अलावा किसी दूसरे के बारे में सोच भी नहीं सकता था"एक बच्चे के रूप में, उन्होंने बेल्डेनसिया प्राथमिक और सभी उम्र वालों के लिए स्कूल में शिक्षा पाई और यहीं पर उन्होंने अपने ग्रामीण क्षेत्र के लिए अपने वार्षिक राष्ट्रीय प्राथमिक स्कूल प्रतियोगिता में दौड़कर उपनी अपनी धावक संभावना को प्रदर्शित किया। 12 की उम्र तक, बोल्ट 100 मीटर दौड़ में अपने स्कूल के सबसे तेज धावक बन गये।
विलियम निब मेमोरियल हाईस्कूल में उन्हें प्रविष्टि मिलने के बाद बोल्ट दूसरे खेलों पर ध्यान देते रहे, पर उनके क्रिकेट कोच ने पिच पर बोल्ट की गति देखी और बोल्ट से आग्रह किया कि वे ट्रैक और फील्ड स्पर्धाओं में कोशिश करें। पूर्व 100 मीटर ओलंपिक एथलीट पाब्लो मैकनेल और ड्वेन बैरेट ने बोल्ट की कोचिंग की और उन्हें एथलेटिक क्षमताओं में सुधार में अपनी ऊर्जा केंद्रित करने के लिए प्रोत्साहित किया। इस विद्यालय में धावक माइकल ग्रीन पूर्व छात्रों की एथलेटिक सफलता का इतिहास रहा था। बोल्ट ने 2001 में पहली वार्षिक उच्च विद्यालय प्रतियोगिताओं में पदक जीता और 200 मीटर स्पर्धा में 22.04 सेकंड के समय के साथ रजत पदक जीता मैकनेल जल्द ही उनके प्राथमिक कोच बने और दोनों ने सकारात्मक भागीदारी का आनंद लिया, हालांकि बोल्ट में प्रशिक्षण के दौरान समर्पण की कमी और मौके-बेमौके चुटकुलेबाजी की आदत से निराश हो जाते थे।
शुरुआती प्रतियोगिताएं
पहले कैरीबियन क्षेत्रीय प्रतियोगिता में जमैका के लिए हिस्सा लेते हुए बोल्ट ने 2001 के CARIFTA खेलों में 400 मीटर श्रेणी में 48.28 सेकेंड के समय के साथ, व्यक्तिगत सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन किया और एक रजत पदक जीता। 200 मीटर में भी बोल्ट ने 21.81 सेकेंड समय लेकर रजत पदक जीता।
हंगरी के डेबरेसेन में 2001 के आइएएएफ विश्व युवा चैंपियनशिप में उन्होंने विश्व मंच पर उनकी पहली उपस्थिति दर्ज कराई. 200 मीटर की प्रतियोगिता में वे फाइनल तक पहुंचने की अर्हता हासिल करने में विफल रहे, लेकिन फिर भी 21.73 सेकेंड समय लेकर नया व्यक्तिगत सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन किया। बोल्ट ने अब तक एथलेटिक्स या अपने आपको गंभीरता से नहीं लिया था। हालांकि माना जाता है कि CARIFTA परीक्षण में 200 मीटर फाइनल के लिए जब वे तैयार हो रहे थे, तभी उन्होंने एक वैन के पीछे छुपकर अपनी शोख़ी की नई ऊंचाइयों को छुआ. इस व्यावहारिक मजाक के लिए पुलिस हिरासत ने उन्हें हिरासत में लिया, पर स्थानीय लोगों ने इसे लेकर काफी हो-हल्ला मचाया और घटना के लिए कोच मैकनेल को दोषी ठहराया. हालांकि, विवाद थम गया और मैकनेल और बोल्ट दोनों CARIFTA खेल में शामिल हुए जहां बोल्ट ने 200 और 400 मीटर स्पर्धा में क्रमश: 21.12 और 47.33 सेकेंड का समय लेकर चैम्पियनशिप का रिकॉर्ड बनाया। सेंट्रल अमेरिकन और कैरेबियन जूनियर चैंपियनशिप में उन्होंने 20.61 और 47.12 सेकेंड पर दौड़ पूरी रिकॉर्ड बनाना जारी रखा।
पूर्व प्रधानमंत्री पी.जे. पैटरसन ने बोल्ट की प्रतिभा का लोहा माना और गोंजाल्स जर्मेन के साथ उनके किंग्स्टन जाने की व्यवस्था की, ताकि वह जमैका के प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय में जमैका एमेच्योर एथलेटिक एसोसिएशन में प्रशिक्षित हो सकें.
शोहरत की सीढ़ियां
2002 के विश्व जूनियर चैंपियनशिप से किंग्स्टन, जमैका के घरेलू प्रशंसकों के समक्ष बोल्ट को विश्व मंच पर अपने को साबित करने का मौका मिला। 15 साल की उम्र में ही वे काफी लंबे हो गये थेऔर शारीरिक रूप से अपने साथियों से बड़े दिखने लगे। 20.61 सेकेंड में 200 मीटर स्पर्धा जीतना उनका नया व्यक्तिगत सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन था। जमैकन रिले स्प्रिंट टीम के एक सदस्य के रूप में बोल्ट ने दो रजत पदक जीते और 4×100 मीटर व 4 × 400 मीटर रिले दौड़ क्रमश: 39.15 सेकेंड और 3:04.06 के समय के साथ एक नया जूनियर राष्ट्रीय रिकॉर्ड बनाया। बोल्ट की 200 मीटर स्पर्धा में हुई जीत ने उन्हें अब तक का सबसे कम उम्र का विश्व जूनियर स्वर्ण पदक विजेता बना दिया।
पदकों का सिलसिला निरंतर जारी रहा और उन्होंने 2003 के युवा विश्व चैंपियनशिप में एक अन्य स्वर्ण पदक जीता। और 20.40 सेकेंड समय के साथ 1.1 मिनट/ सेकेंड की गति वाली हेड विंड के बावजूद 200 मीटर स्पर्धा जीतकर एक नया चैम्पियनशिप रिकॉर्ड बनाया। 200 मीटर विश्व रिकार्ड धारक माइकल जॉनसन की बोल्ट क्षमता पर नज़र पड़ी, पर यह युवा धावक ज्यादा दबाव में आ सकता है, इसकी चिंता व्यक्त करते हुए उन्होंने कहा कि "यह इस बात पर निर्भर करता है कि तीन चार व पांच साल में वे कैसा प्रदर्शन करते हैं।". बोल्ट एथलेटिक्स की पूर्व परंपराओं से भी प्रभावित थे और उन्हें 2002 के लिए IIAF राइजिंग स्टार अवार्ड भी मिला।
बोल्ट ने 200 मीटर स्पर्धा पर अपना ध्यान केंद्रित किया और पैन अमेरिकी जूनियर चैंपियनशिप में उन्होंने रॉय मार्टिन की 20.13 सेकेंड के वर्ल्ड जूनियर रिकॉर्ड की बराबरी की। इस प्रदर्शन से उनकी ओर प्रेस का भी ध्यान गया और 200 मीटर व 400 मीटर स्पर्धा में प्रदर्शन को देखते हुए उन्हें जॉनसन का संभावित उत्तराधिकारी माना जाने लगा। वास्तव में, 16 साल की उम्र में बोल्ट वहां पहुंच गये, जहां जॉनसन 20 साल की उम्र तक नहीं पहुंच पाये थे और बोल्ट का 200 मीटर स्पर्धाओं का समय उस वर्ष मोराइस ग्रीन के सीजन के सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन से बेहतर था।
2003 में जमैकन हाई स्कूल चैंपियनशिप में उन्होंने 20.25 और 45.30 समय लेकर क्रमश: 200 मीटर और 400 मीटर दोनों स्पर्धाओं का रिकॉर्ड तोड़ दिया। बोल्ट की दौड़ में पिछले रिकार्डों की तुलना में एक महत्वपूर्ण सुधार हुआ और उन्होंने 200 मीटर में सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन को आधे सेकेंड से और 400 मीटर के रिकार्ड को लगभग एक सकेंड के अंतर से तोड़ा.
बोल्ट अपने देश में और अधिक लोकप्रिय होते जा रहे थे। हावर्ड हैमिल्टन, जिन्हें सरकार ने पब्लिक डिफेंडर का कार्य दिया था, ने JAAA से उनके पोषण और शारीरिक और मानसिक रूप से टुटन को रोकने का आग्रह किया और कहा कि बोल्ट "इस द्वीप में पैदा सबसे अद्भुत धावक" कहा. राजधानी शहर में उनकी लोकप्रियता और आकर्षण इस युवा धावक के लिए एक बोझ बननी शुरू हुई। बोल्ट का तेजी से अपने एथलेटिक कैरियर से ध्यान हटने लगा और वे पसंदीदा फास्ट फूड खाने, बास्केटबॉल खेलने और किंग्स्टन के क्लब में पार्टियों का आनंद लेने को वरीयता देने लगे। एक अनुशासित जीवन शैली के अभाव में, ट्रैक पर अपने प्रतियोगियों को हराने के लिए अपनी प्राकृतिक क्षमता पर और अधिक निर्भर रहने लगे।
विश्व युवा और विश्व जूनियर चैंपियन दोनों में 200 मीटर स्पर्धा में राज करने के बाद बोल्ट ने पेरिस के सीनियर विश्व चैंपियनशिप की 200 मीटर प्रतियोगिताओं में अपना झंडा गाड़ने की उम्मीद की बोल्ट विश्व चैम्पियनशिप परीक्षणों में 200 मीटर स्पर्धा में हरा सभी प्रतियोगियों को हरा दिया, लेकिन वह अपने मौके के प्रति आशान्वित रहे और सोचा कि भले ही वे अंतिम दौर में नहीं पहुंच पायेंगे, पर अपने सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन को एक कामयाबी मानेंगे हालांकि, इस स्पर्धा से पहले वे नेत्रश्लेष्मलाशोथसी पीड़ित हुए और इससे उनके प्रशिक्षण का कार्यक्रम तहस-नहस हो गया। यह देखते हुए कि वह चोटी अपनी सर्वश्रेष्ठ स्थिति में नहीं हैं, JAAA ने फाइनल में उन्हें इस आधार पर भाग लेने के लिए मना कर दिया कि वह बहुत छोटी उम्र के और अनुभवहीन हैं। बोल्ट यह अवसर गंवाने से बहुत निराश हुए, लेकिन इसके बदले में जमैकन ओलंपिक टीम में जगह पाने के लिए खुद को ठीक रखने पर ध्यान केंद्रित किया। हालांकि, वह विश्व चैंपियनशिप में हिस्सा लेने से चूक गये, पर बोल्ट को 2003 के सीजन में जूनियर स्पर्धाओं में रिकार्ड की बराबरी करने के बूते IIAF राइजिंग स्टार अवार्ड प्रदान किया गया।
पेशेवर एथलेटिक्स करियर
नए कोच फिट्ज कोलमैन के मार्गदर्शन में, बोल्ट 2004 में पेशेवर बने। जो बरमूडा में CARIFTA खेलों के साथ शुरु हुआ। 200 मीटर दौड़ को 20 सेकेंड में पूरा करने वाले वे पहले जूनियर धावक बन गये और 19.93 सेकेंड के समय के साथ सकेंड के दो दहाई से रॉय मार्टिन का रिकार्ड तोड़ दिया। मई में घुटनों की नस की चोट के कारण बोल्ट के 2004 के विश्व जूनियर चैंपियनशिप स्पर्धा में भाग लेने का मौका खत्म हो गया, लेकिन फिर भी वे जमैका ओलंपिक टीम के लिए चुने गये। बोल्ट ने पूरे विश्वास के साथ 2004 के एथेंस ओलंपिक में हिस्सा लिया और अपनी टीम के लिए एक नया रिकार्ड बनाया। हालांकि, पैर की चोट के कारण उन्हें कठिनाई का सामना करना पड़ा और 200 मीटर की दौड़ में 21.05 सेकेंड का निराशाजनक समय लेकर प्रथम चक्र में ही बाहर हो गये। उनके प्रदर्शन के बूते अमेरिकी कॉलेजों ने बोल्ट को ट्रैक छात्रवृत्ति की पेशकश की, लेकिन ट्रेलानी के इस किशोर ने पेशकश यह कहकर ठुकरा दी कि वह अपनी मातृभूमि जमैका में ही रहना चाहते हैं। इसके बजाय बोल्ट ने अपने व्यावसायिक प्रशिक्षण के लिए जमैका के प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय के माहौल को चुना और विश्वविद्यालय के प्रारंभिक ट्रैक एंड वेट रूम में ही ठहरे, जिसका उन्होंने शौकिया खेलने के सालों में अच्छी तरह उपयोग किया था।
वर्ष 2005 ने नये कोच ग्लेन मिल्स के रूप में बोल्ट के लिए एक ताजा शुरुआत और एथलेटिक्स के प्रति एक-एक नये नजरिये का संकेत किया। मिल्स ने बोल्ट के संभावनाओं को माना और खेल के प्रति इस धावक के अव्यवसायिक रुख को खत्म करने का लक्ष्य निर्धारित किया। बोल्ट एथलेटिक्स के आगामी सीजन के लिए मिल्स के साथ तैयारी में लगे और किम कोलिन्स व ड्वाइन चेम्बर्स जैसे और अधिक अनुभवी धावकों के साथ साझेदारी की। अगली बड़ी स्पर्धा 2005 के हेलसिंकी विश्व चैंपियनशिप में दुर्भाग्य जैसे बोल्ट की प्रतीक्षा कर रही थी। बोल्ट ने महसूस किया कि 2004 के ओलंपिक के बाद उनकी कार्यनिष्ठा और और एथलेटिक दक्षता दोनों में बहुत सुधार हुआ है और उन्होंने विश्व चैंपियनशिप को लोगों की अपेक्षाओं पर खरा उतरने मार्ग के रूप में देखा था। अगली बड़ी स्पर्धा 2005 के हेलसिंकी विश्व चैंपियनशिप में दुर्भाग्य जैसे बोल्ट की प्रतीक्षा कर रही थी। बोल्ट ने महसूस किया कि 2004 के ओलंपिक के बाद उनकी कार्यनिष्ठा और और एथलेटिक दक्षता दोनों में बहुत सुधार हुआ है और उन्होंने विश्व चैंपियनशिप को लोगों की अपेक्षाओं पर खरा उतरने मार्ग के रूप में देखा था। उन्होंने कहा, "मैं वास्तव उसी के लिये तैयार होना चाहता हूं, जो एथेंस में हुआ। उम्मीद के मुताबिक सब कुछ ठीक हो जायेगा. बोल्ट ने 21 सेकेंड श्रेणी में अर्हता प्राप्त की, पर फाइनल में उन्हें चोट का सामना करना पड़ा और 26.27 सेकेंड के साथ वह आखिरी पायदान पर आ गये। चोटों ने उन्हें एक पूर्ण पेशेवर एथलेटिक्स सीजन पूरा करने से रोक दिया और अठारह वर्षीय बोल्ट ने प्रमुख विश्व एथलेटिक्स प्रतियोगिताओं में अब तक अपनी क्षमता साबित नहीं की थी। नवंबर में बोल्ट एक कार दुर्घटना के शिकार हो गये, हालांकि उन्हें चेहरे पर केवल मामूली खरोंच आई, पर इससे उनका प्रशिक्षण कार्यक्रम अस्तव्यस्त हो गया। उनके प्रबंधक नोर्मन पीयर्ट ने बोल्ट के प्रशिक्षण की गहनता कम कर दी और एक सप्ताह के बाद ने पूरी तरह से ठीक हो गये। बोल्ट ने अपने प्रदर्शन में सुधार करने के लिए प्रयास जारी रखा और 2005 और 2006 में वह विश्व रैंकिंग में शीर्ष 5 में पहुँच गये। पीयर्ट और मिल्स ने वर्ष 2007 या 2008 तक 400 मीटर स्पर्धा को उनकी प्राथमिक स्पर्धा बनाने के मकसद से बोल्ट को लंबी धावक दूरियों के लिए उकसाया. बोल्ट कम उत्साहित थे और कहा कि वह अपनी दौड़ दूरी में आरामदायक महसूस करते हैं। 2006 मार्च में वे फिर घुटने की नसों की चोट के शिकार हुए और मेलबोर्न में 2006 के राष्ट्रमंडल खेलों से उन्हें हटने पर मजबूर होना और मई तक किसी ट्रैक स्पर्धा में वे शामिल नहीं हुए. चोट से उबरने के बाद, बोल्ट को लचीलापन में सुधार करने के लिए व्यायाम का नया प्रशिक्षण दिया गया और 400 मीटर स्पर्धाओं के लिए उन्हें रोक रखने की योजना बनी।
प्रतियोगिता में वापस लौटने के बाद 200 मीटर को ही उन्होंने अपनी प्राथमिक स्पर्धा बनाये रखी. और चेक गणराज्य में ओस्ट्रावा में वह हरा जस्टिन गैटलिन के मीट रिकॉर्ड को तोड़ा. बोल्ट को सीजन का सर्वश्रेष्ठ बनने के लिए बीस सेकंड के अंदर दौड़ना था, पर इसके तथ्य के बावजूद कि मौसम ख़राब था, वह सिर्फ जीत हासिल कर ही खुश हो गये।
स्विट्जरलैंड के लुसाना 2006 एथलेटीसिमा ग्रांड प्रिक्स में उन्होंने 19.88 सेकेंड लेकर अपना सर्वश्रेष्ठ निजी प्रदर्शन किया, हालांकि, एक उप-20 सेकेंड दौड़ वे जल्दी पूरा कर चुके थे और उन्होंने जेवियर कार्टर और टायसन गे से पिछड़कर कांस्य पदक ही जीता। बोल्ट ने यह कहकर अपने एथलेटिक्स लक्ष्यों पर ध्यान केंद्रित किया कि 2006 का वर्ष उनके लिए अनुभव हासिल करने वाला वर्ष रहा। इसके अलावा, वे लंबी दूरी की प्रतिस्पर्धा के बारे में अधिक उत्सुक रहे और तय किया कि अगले दो वर्षों में 200 मीटर और 400 मीटर स्पर्धाओं में नियमित रूप से दौड़ते रहेंगे. बोल्ट ने अपना पहला बड़ा विश्व पदक दो माह बाद स्टटगार्ट, जर्मनी में IIF विश्व एथलेटिक्स फाइनल में हासिल किया। इस प्रक्रिया में उन्होंने 20.10 सेकेंड के साथ अंतिम पोस्ट पूरा किया और कांस्य पदक प्राप्त किया। यूनान के एथेंस के आइएएएफ विश्व कप में बोल्ट ने पहला अंतरराष्ट्रीय सीनियर रजत पदक जीता। संयुक्त राज्य अमेरिका के वालेस स्पीयरमैन 19.87 सेकेंड का चैम्पियनशिप रिकार्ड समय लेकर स्वर्ण जीता और सम्मानजनक समय 19.96 सेकेंड लेने वाले बोल्ट को हराया. 2007 में क्षेत्रीय और अंतरराष्ट्रीय दोनों स्तरों पर 200 मीटर स्पर्धा का सम्मान बोल्ट की प्रतीक्षा कर रहा था। जमैका के इस युवा खिलाड़ी ने 100 मीटर में भाग लेना चाहा, पर कोच मिल्स ने ध्यान हटाया और कहा कि अगर वह 200 मीटर का राष्ट्रीय रिकॉर्ड तोड़ते हैं तो छोटे संस्करण में खेल सकते हैं। जमैका की प्रतियोगिताओं में, उन्होंने 200 मीटर की दौड़ 19.75 सेकेंड में पूरा किया और जमैका के 36 वर्षीय खिलाड़ी डॉन क्वारी का 0.11 सेकेंड का रिकार्ड तोड़ा.
मिल्स 100 मीटर दौड़ भाग लेने की बोल्ट की मांग मान ली और क्रेते के 23 वीं रिथिमनो वर्दीनोयानिया स्पर्धा में शामिल हुए. प्रतियोगिता की अपनी पहली दौड़ में 10.03 सेकेंड लेकर व्यक्तिगत सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन कर स्वर्ण पदक जीता और इस स्पर्धा के प्रति अपने उत्साह को बरकरार रखा।
जापान के ओसाका में 2007 के विश्व चैंपियनशिप में एक रजत पदक जीतकर उपलब्धि हासिल की। बोल्ट. ने 0.8 मी/से के हेडविंड के साथ 19.91 सेकेंड का समय लिया, लेकिन यह टाइसन गे के 19.76 सेकेंड के समय की तुलना में यह फीकी पड़ गई।
जमैका का राष्ट्रीय रिकॉर्ड तब टूट गया, जब बोल्ट ने असाफा पावेल, मारविन एंडर्सन और नेस्टा कार्टर के साथ 4×100 मीटर रिले में भागीदारी की। हालांकि, उनका 37.89 सेकेंड का समय अमेरिकियों के 37.78 सेकेंड को पछाड़ने के लिए लिए पर्याप्त नहीं था। बोल्ट 2007 में हुए प्रमुख टूर्नामेंर्टों में के कोई स्वर्ण पदक नहीं जीत पाये, लेकिन मिल्स ने महसूस किया कि बोल्ट की तकनीक में काफी सुधार आया, 200 मीटर की आवृत्ति में वृद्धि बोल्ट का संतुलन का पता लगा और कदमों की बारंबरता बढ़ी जिससे ट्रैक पर उन्हें और अधिक ड्राइविंग शक्ति मिली।
विश्व रिकॉर्ड तोड़ने वाला
2007 के ओसाका विश्व चैंपियनशिप रजत पदक मिलने से बोल्ट में दौड़ने की इच्छा और बढ़ी और उन्होंन अपने करिया के प्रति और गंभीर व परिपक्व रुख अख्तियार किया। बोल्ट 100 मीटर श्रेणी में निरंतर सुधार करते रहे और किंग्स्टन में जमैका इनविटेशन दौड़ प्रतियोगिताओं में शामिल हुए. पर 3 मई 2008 को, बोल्ट ने 9.76 के समय के साथ 1.8 मी/से के टेल विंड (पीछे से बहती हवा) सहयोग से पहले के 10.03 सेकेंड समय वाले अपने निजी सर्वश्रेष्ठ में उल्लेखनीय सुधार किया। यह स्पर्धा के इतिहास में दूसरा सबसे तेज वैधानिक प्रदर्शन था, दूसरे स्थान पर अपने ही देश के असाफा पॉवेल थे, जिन्होंने इटली के रिटी में पिछले साल 9.74 सेंकेंड का समय लिया था। प्रतिद्वंद्वी टायसन गे ने प्रदर्शन की सराहना की, खासकर बोल्ट के फार्म और तकनीक की। दौड़ का निरीक्षण कर रहे माइकल जॉनसन ने कहा कि वह यह देखकर हैरान थे कि 100 मीटर दूरी में उन्होंने कितनी तेजी से सुधार किया। जमैका के इस खिलाड़ी ने खुद भी समय को लेकर हैरानी जताई, लेकिन कोच ग्लेन मिल्स को यह विश्वास था कि उनकी क्षमता अभी और दिखेगी.
मिल्स की भविष्यवाणी महीने के अंत के पहले ही सच साबित हुई, जब बोल्ट 31 मई 2008 को 100 मीटर में एक नया विश्व रिकॉर्ड कायम किया। 1.7 मी/से गति से पीछे से आती हवा के बल से बोल्ट ने न्यूयॉर्क सिटी के इचान स्टेडियम में आयोजित रिबॉक ग्रांड प्रिक्स में 9.72 सेकेंड में दौड़ पूरी कर पावेल का रिकॉर्ड तोड़ दिया। यह रिकार्ड समय इस तथ्य के प्रकाश में और उल्लेखनीय था कि यह निर्धारित दूरी में केवल उनकी पांचवीं सीनियर दौड़ थी। गे फिर दूसरे स्थान पर आये और उन्होंने बोल्ट की शारीरिक श्रेष्ठता की यह कहते हुए प्रशंसा की कि," ऐसा लगता था कि उनके घुटने में चेहरे के पीछे भाग रहे थे।" टिप्पणीकारों ने कहा कि ऐसा लगता है कि बोल्ट ने अपने ओलंपिक प्रतियोगी गे पर मनोवैज्ञानिक बढ़त कायम कर ली है।
जून 2008 में बोल्ट ने इस दावे पर गौर करते हुए कि वे एक आलसी खिलाड़ी हैं, कहा कि ऐसी टिप्पणियां अनुचित थीं और वह अपनी क्षमता हासिल करने के लिए गहन प्रशिक्षण लेने लगे। हालांकि कुल मिलाकर उन्होंने माना कि ऐसी टिप्पणियां 400 मीटर स्पर्धा के प्रति उत्साह की कमी से उपजी है और वे इस दूरी की दौड़ के लिए प्रशिक्षित होना नहीं चाहते. 200 मीटर स्पर्धा की ओर अपने प्रयासों को मोड़ते हुए, बोल्ट ने साबित कर दिया कि कई प्रकार की स्पर्धाओं में उत्कृष्ट प्रदर्शन कर सकते हैं- जैसे पहले ओस्ट्रावा में विश्व में अग्रण्री समय के साथ दौड़ पूरी की और उसके बाद यूनान के एथेंस में 19.67 सेकेंड समय के साथ दूसरी बार राष्ट्रीय रिकॉर्ड तोड़ा. हालांकि अब भी मिल्स इस बात को प्रमुखता देते रहे कि बोल्ट को लंबी दूरियों पर ध्यान केंद्रित करना चाहिए, 100 मीटर स्पर्धा में दौड़ने की बोल्ट की स्वीकृति से धावक और प्रशिक्षक दोनों के लिए काम किया। बोल्ट अभ्यास के प्रति और ध्यान देने लगे और ओलंपिक के लिए तैयारियों के तहत तय एक प्रशिक्षण कार्यक्रम, जिससे कि गति और ताकत में इजाफा हो सके, से 100 मीटर और 200 मीटर दोनों में सुधार हुआ। उनका विश्वास बहाल हो रहा था और वह आगामी ओलंपिक में बेहतर प्रदर्शन के प्रति पूरी तरह आश्वस्त थे।
2008 ग्रीष्मकालीन ओलंपिक
बोल्ट ने घोषणा की कि वह बीजिंग ग्रीष्मकालीन ओलंपिक में 100 मीटर और 200 मीटर दोनों स्पर्धाओं में हिस्सा लेंगे और 100 मीटर में यह नया विश्व रिकॉर्ड धारक दोनों में जीत का पसंदीदा था। 200 मीटर और 400 मीटर रिकार्ड धारक माइकल जॉनसन ने व्यक्तिगत रूप से इस धावक का समर्थन करते हुए कहा कि उन्हें विश्वास नहीं है कि अनुभव की कमी उनके खिलाफ काम करेगी बोल्ट ने क्वार्टर-सेमीफाइनल और सेमी-फाइनल में क्रमशः 9.92 सेकेंड व 9.85 सेकेंड से दूरी तय कर फाइनल के लिए अर्हता प्राप्त की।
100 मीटर ओलंपिक फाइनल में, बोल्ट ने प्रतिक्रिया समय 0.165 सेकेंड के साथ 9.69 सेकेंड (अधिकारिक 9.683) में दौड़ जीतकर नई जमीन तैयार की। यह उनके अपने ही विश्व रिकार्ड में सुधार था और वे दूसरे स्थान पर आये रिचर्ड थाम्पसन से काफी आगे थे, जिन्होंने 9.89 सेकेंड में दौड़ पूरी की। यह रिकार्ड अनुकूल हवा के बिना (+0.0 मी/से) तो बना ही, जीत हासिल करने से पहले ही जश्न मनाने की मानसिकता की वजह से वे थोड़े धीमे भी दिखे और उनके जूते का फीता भी खुल गया था। बोल्ट के कोच ने बताया कि बोल्ट के शुरुआती 60 मीटर की गति के आधार पर उन्होंने 9.52 सेकेंड में ही दौड़ पूरी कर ली होती. ओस्लो विश्वविद्यालय के सैद्धांतिक खगोल भौतिकी संस्थान की ओर से बोल्ट की दौड़ के वैज्ञानिक विश्लेषण के बाद हैंस एरिक्सन और उनके साथियों ने 9,60 सेकेंड उप समय की भविष्यवाणी की थी। दूसरे स्थान पर रहे थाम्पसन की तुलना में बोल्ट की स्थिति, गति में तेजी लाने व वेग को देखकर टीम ने अनुमान किया कि अंतिम रेखा पर पहुंचने से पहले जश्न मनाने के लिए वे अगर धीमा नहीं हुए होते तो समय 9.55 सेकेंड ही समय लगता.
बोल्ट ने कहा कि उनकी प्राथमिकता सिर्फ एक रिकार्ड स्थापित करना नहीं थी, उनका लक्ष्य था सिर्फ स्वर्ण पदक जीतना, जो जमैका को 2008 में पहली बार मिला। ओलंपिक पदक विजेता क्रिस अकाबुसी ने आखिरी लाइन पर बोल्ट के छाती पर थप्पड़ मारने को उनके अहंकार का हिस्सा बताया और टिप्पणी की कि इन कार्रवाइयों से बोल्ट और तेज रिकार्ड समय हासिल कर सकते हैं। IOC के अध्यक्ष जैक्स रोग ने भी जमैकन की इस कार्यवाही को अपमानजनक कहकर निंदा की। बोल्ट ने इस बात का खंडन किया कि इसका मकसद जश्न मनाना था और कहा कि" मैं अहंकारग्रस्त नहीं था। जब मैंने देखा मुझे कवर नहीं किया गया तो मैं खुश था बस". आइएएएफ के अध्यक्ष, लेमाइन डिक ने बोल्ट का समर्थन किया और कहा कि उनका जश्न मनाना उनकी जीत के अवसरों को देखते हुए यह उपयुक्त था। जमैका सरकार के मंत्री एडमंड बार्टलेट ने भी बोल्ट की कार्यवाही का यह कहकर बचाव किया कि" हमें इसे उस पल की महिमा के रूप में देखना चाहिए और इसका श्रेय देना चाहिए. हमें युवक के व्यक्तित्व को खुद को अभिव्यक्त करने की अनुमति देनी चाहिए".
उसके बाद बोल्ट ने 200 मीटर स्पर्धा में स्वर्ण पदक जीतने पर ध्यान केंद्रित किया और 1984 के लॉस एंजिल्स ओलंपिक्स में कार्ल लुईस के डबल जीत की बराबरी करने या उनसे आगे निकलने का लक्ष्य रखा। माइकल जॉनसन का मानना था कि बोल्ट आसानी से स्वर्ण पदक जीत जायेंगे, उन पर विश्वास किया कि ओलंपिक में 1996 के अटलांटा ग्रीष्मकालीन ओलंपिक में बना उनका अपना 19.32 सेकेंड का विश्व रिकार्ड बरकरार रहेगा. बोल्ट 200 मीटर में पहले और दूसरे दोनों राउंड को आसानी से पार कर लिया और दोनों समय दौड़ के अंत में जॉगिंग की। वे सेमीफाइनल जीत गये और फाइनल में जीत के लिए पसंदीदा खिलाड़ी बन गये। सेवानिवृत्त जमैकन धावक डॉन क्वैरी ने बोल्ट की प्रशंसा करते हुए कहा कि उन्हें विश्वास है कि जॉनसन का रिकॉर्ड टूट सकता है। अगले दिन, फाइनल में उन्होंने खेलों में जमैका के लिए चौथा सोना जीता और 19.30 सेकेंड समय लेकर नया विश्व व ओलंपिक रिकॉर्ड बनाया। जॉनसन के रिकॉर्ड इस तथ्य के बावजूद टूटा कि बोल्ट को 0.9 मी/से की गति से सामने से आ रही हवा से जूझना पड़ा. इस अवसर ने उन्हें क्वैरी के बाद दुनिया का पहला धावक बना दिया, जिसने 100 मीटर और 200 मीटर दोनों विश्व रिकार्ड बनाया। यह इलेक्ट्रॉनिक समय शुरू किये जाने के बाद पहला रिकार्ड था। इसके अलावा, बोल्ट उसी ओलंपिक में दोनों रिकॉर्ड तोड़ने वाले पहले धावक बन गये। 100 मीटर फाइलन के विपरीत, बोल्ट ने 200 मीटर दौड़ में अंतिम लाइन पर काफी जोर लगाया, यहां तक कि छाती को झुका लिया। दौड़ के बाद, स्टेडियम की ध्वनि प्रणाली पर "हैप्पी बर्थ डे" का संगीत गूंजा, क्योंकि आधी रात के बाद उनका 22 वां जन्मदिन शुरू होने वाला था।
दो दिन बाद बोल्ट ने जमैका की 4x100 रिले टीम में तीसरी बार दौड़े और उनके स्वर्ण पदकों की संख्या तीन हो गई। अपने साथियों, नेस्टा कार्टर, माइकल फ्रेटर और असफा पावेल के साथ असफा बोल्ट ने 37.10 सेकेंड समय में पिछले रिकार्ड को सेकेंड के तीन दहाई के अंतर से एक अन्य विश्व और ओलंपिक रिकॉर्ड तोड़ा. पावेल, जिन्होंने टीम को अंतिम रेखा पर पहुंचाने में अहम भुमिका निभाई, को बोल्ट के हाथों अपने 100 मीटर रिकॉर्ड के टूटने से पछतावा हुआ, पर उन्होंने अपने जमैकन प्रतिद्वंद्वी के प्रति को शत्रुतापूर्ण व्यवहार नहीं दिखाते हुए कहा कि उनके तीसरे विश्व रिकार्ड में मदद कर उन्हें खुशी महसूस हो रही है। जीत के बाद बोल्ट ने चीन के सिचुआन प्रांत के बच्चों के लिए 50,000 डॉलर का दान दिया, जिससे कि 2008 के सिचुआन भूकंप के पीड़ितों की मदद की जा सके।
बोल्ट के रिकार्ड बनाने वाली दौड़ों की वजह से टिप्पणीकारों न केवल उसकी उपलब्धियों प्रशंसा की, बल्कि अब तक के सर्वाधिक सफल धावक बनने की संभावना का भी अनुमान किया। टिप्पणकारों ने उनकी ओलंपिक कामयाबी की प्रशंसा की, क्योंकि उस खेल की एक नई शुरुआत थी, जिसे कुख्यात नशीली दवा घोटालों से लंबे समय से सामना करना पड़ा था। पिछले छह सालों में BALCO घोटाला गूंजता रहा और टिम मोंटगोमरी और गैटलिन जस्टिन से उनके 100 मीटर विश्व रिकार्ड छीन लिये गये व मैरियन जोन्स ने तीन ओलंपिक स्वर्ण पदक लौटा दिये। दवाओं के परीक्षण में दोषी पाये जाने के बाद सभी तीन धावकों को एथलेटिक्स के लिए अयोग्य ठहराया गया, क्योंकि उनकी प्रणालियों में प्रतिबंधित पदार्थ पाये गये थे। बोल्ट के रिकार्डतोड़ प्रदर्शन से विक्टर कोंट सहित कुछ टिप्पणीकारों को संदेह हुआ और एक स्वतंत्र कैरेबियन एंटी-डोपिंग फेडरेशन के अभाव से चिंता और बढ़ गई। बोल्ट के कोच ग्लेन मिल्स और हर्ब इलियट (जमैकन एथलेटिक्स टीम डॉक्टर) ने नशीली दवाओं के प्रयोग के आरोप को एक सिरे से अस्वीकार कर दिया। आइएएएफ के डोपिंग-निरोधक आयोग के एक सदस्य इलियट ने इस संबंध में चिंतित लोगों से आग्रह किया कि "वे आयें और हमारे कार्यक्रम देखें, वे आये और हमारा परीक्षण देखें, हमारे पास छिपाने के लिए कुछ नहीं है। मिल्स भी समान रूप से इस बात पर अड़े रहे कि बोल्ट एक साफ-सुथरे एथलीट हैं और उन्होंने जमैका के ग्लैनर के समक्ष घोषणा की कि:"हम किसी दिन, किसी समय और शरीर के किसी भाग के परीक्षण के लिए तैयार हैं। वह विटामिन भी लेना पसंद नहीं करते. बोल्ट ने कहा कि ओलंपिक से पहले वे जांच के लिए वह चार बार गये थे और सभी में प्रतिबंधित पदार्थो के लिए नकारात्मक रिपोर्ट आई. उन्होंने डोपिंग निरोधी परीक्षण करने वाले अधिकारियों का भी स्वागत किया वे जांच करें और साबित करें कि वे पाक-साफ हैं। उन्होंने कहा कि, "हम कड़ी मेहनत करते हैं, अच्छा प्रदर्शन करते हैं और हम जानते हैं कि पाक- साफ हैं।
ओलंपिक के बाद
2008 के एथलेटिक्स सत्र में बोल्ट ने AF गोल्डन लीग पूरी की और वेल्टक्लेसी ज्यूरिख प्रतिस्पर्धा में शिरकत की शुरुआत की। 100 मीटर दौड़ में अपने प्रतिद्वंद्वियों के बीच धीमी गति होने के बावजूद, उन्होंने 9.83 सेकेंड में अंतिम रेखा पार की। हालांकि यह समय उनके नये-नये बने विश्व रिकॉर्ड और असाफा पावेल के ट्रैक रिकॉर्ड से कम था है, लेकिन यह फिर भी 100 मीटर स्पर्धा में उस तारीख तक किसी धावक द्वारा कामयाब हुए पन्द्रह शीर्ष धावकों में से एक था। बोल्ट ने स्वीकार किया कि वह पूरी ताकत से नहीं दौड़े, वे ठंड से पीड़ित थे, लेकिन उन्होंने दौड़ जीतने और बेहतर सेहत बहाल रखने पर ध्यान केंद्रित किया। लॉज़ेन में सुपर ग्रैंड प्रिक्स फाइनल में 200 मीटर स्पर्धा में 19.63 सेकेंड समय लेकर दूसरी सबसे तेज दौड़ पूरी की और जेवियर कार्टर के ट्रैक रिकॉर्ड की बराबरी की। हालांकि, 100 मीटर फाइनल में, असफा पावेल ने सबका ध्यान आकर्षित किया। 9.72 सेकेंड समय के साथ अपना व्यक्तिगत सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन कर पावेल बोल्ट के विश्व रिकार्ड के करीब पहुंच गये और बोल्ट के मुख्य प्रतिद्वंद्वी के रूप में अपनी दावेदारी पेश रखी. बोल्ट की इस सीजन की अंतिम दौड़ तीन दिन बाद ब्रुसेल्स के गोल्डन लीग के फाइनल में पूरी हुई। ओलंपिक में फाइनल के बाद से बोल्ट और पावेल दोनों की भागीदारी वाली यह पहली 100 मीटर दौड़ थी, दोनों जमैकन ने ट्रैक रिकॉर्ड तोड़ दिया है, लेकिन बोल्ट 0.06 सेकेंड से और 9.77 सेकेंड समय के साथ पावेल को 0.06 सेकेंड के अंतर से हराकर पहले नंबर पर आये। हालांकि, यह जीत उतनी आसान नहीं रही, जितनी बीजिंग में थी। बोल्ट ने नौ प्रतियोगियों में सबसे धीमी शुरुआत की और उन्हें ठंड और और 0.9 मी/से की गति से सामने से आती हवा से जूझते हुए अपनी बढ़त बनानी थी। हालांकि 100 मीटर में जमैकन के प्रभुत्व की पुष्टि हो गई, क्योंकि इतिहास में दस बसे तेज वैध समय में से नौ बोल्ट या पावेल ने दर्ज की। जमैका लौटने पर बोल्ट की घर वापसी का जश्न मना और बोल्ट को ओलंपिक में उनकी उपलब्धियों के लिए आर्डर ऑफ डिस्टिंग्शन से सम्मानित किया गया।
वे साल के आइएएएफ पुरुष एथलीट के रूप में चयनित किये गये और अपने प्रदर्शनों के लिए एक विशेष ओलंपिक पुरस्कार जीता। हालांकि, बोल्ट ने भविष्य की स्पर्धाओं के लिए ध्यान देना शुरू किया व 2010 के 400 मीटर विश्व रिकार्ड तोड़ने का लक्ष्य रखा, क्योंकि इस साल कोई बड़ी प्रतियोगिता नहीं है।
2009 बर्लिन विश्व चैंपियनशिप
बोल्ट ने अपनी गति में सुधार के लिए सीजन 400 मीटर प्रतिस्पर्धा पूरी की और दो दौड़ जीते व किंग्स्टन में 45.54 सेकेंड का समय दर्ज किया। और हवा की स्थितियों के कारण मार्च में 100 मीटर स्पर्धा में उन्होंने सीजन के पहले उप-10 सेकेंड समय में दौड़ पूरी की। अप्रैल के आखिर में एक कार दुर्घटना में बोल्ट को पैर की मामूली चोट का सामना करना पड़ा. हालांकि, मामूली सर्जरी के बाद वह तेजी से स्वस्थ हो गये और (जमैका में एक ट्रैक स्पर्धा को रद्द करने के बाद) उन्होंने कहा कि मैनचेस्टर ग्रेट सिटी खेलों में 150 मीटर स्ट्रीट प्रतिस्पर्धा में हिस्सा लेने के लिए वे फिट हैं। बोल्ट ने 14.35 सेकेंड से दौड़ जीत ली और 150 मीटर श्रेणी में इसे अब तक के सबसे तेज रिकार्ड के रूप में दर्ज किया गया। पूरी तरह फिट नहीं होने के बावजूद उन्होंने जमैकन राष्ट्रीय चैंपियनशिप में 100 मीटर व 200 मीटर श्रेणी में क्रमशः 9.86 और 20.25 सेकेंड समय से खिताब हासिल किया। मतलब यह कि उन्होंने 2009 के विश्व चैंपियनशिप की दोनों स्पर्धाओं में भागीदारी की काबिलियत हासिल कर ली। प्रतिद्वंद्वी टायसन गे ने कहा कि बोल्ट का 100 मीटर का रिकार्ड उनकी मुट्ठी में है, लेकिन बोल्ट ने दावा खारिज कर दिया और इसके बदले उन्होंने कहा कि असफा पावेल के चोट से वापसी के प्रति ज्यादा रुचि है। बोल्ट जुलाई में एथजेटिसिमा मीट में प्रतिकूल स्थितियों से निपटते हुए 19.59 सेकंड में 0.9 मी/से गति से सामने से आती हवा और बारिश के बावजूद दौड़ पूरी की और यह 200 मीटर का अब तक का चौथा तेज रिकॉर्ड था और यह गे के सर्वश्रेष्ठ समय का सौंवा था।
अगस्त में 2009 के विश्व चैंपियनशिप में बोल्ट 100 मीटर की स्पर्धा को तब आसान बना दिया, जब उन्होंने 9.89 सेकेंड में फाइनल के पूर्व अब तक का सबसे तेज दौड़ पूरी की। फाइनल में बोल्ट और गे सीजन में पहली बार एक साथ दिखे. बोल्ट ने 9.58 सेकेंड समय के साथ विश्व चैंपियनशिप में स्वर्ण पदक जीतकर अपने विश्व रिकॉर्ड में सुधार किया। गे ने बीजिंग में बोल्ट के 9.69 विश्व रिकार्ड दौड़ के मुकाबले 9.71 व 0,02 सेकेंड का समय लिया। पहले के सर्वश्रेष्ठ समय के सेकेंड के दसवें हिस्से के साथ यह इलेक्ट्रॉनिक समय निर्धारण की शुरुआत के बाद से 100 मीटर स्पर्धा में सबसे बड़ा अंतर था।
हालांकि गे ने प्रतियोगिता की दूसरी दौड़ से नाम वापस ले लिया, इस जमैकन ने एक बार फिर 200 मीटर फाइनल में विश्व रिकॉर्ड तोड़ा. उन्होंने अपना रिकार्ड 0.11 सेकंड से तोड़ा और 19.19 सेकंड में दौड़ पूरी की। विश्व चैंपियनशिप के इतिहास में उन्होंने 200 मीटर की दौड़ सबसे बड़े अंतर से जीता, हालांकि दौड़ में तीन अन्य एथलीटों ने भी शिरकत की और उनका समय 19.90 सेकंड के अंदर रहा, जो इस स्पर्धा की सबसे बड़ी संख्या थी। बोल्ट की गति ने उनसे अधिक अनुभवी प्रतियोगियों को भी प्रभावित किया, जैसे तीसरे स्थान पर आये वालेस स्पीयरमैन ने उनकी गति की सराहना की और पूर्व ओलंपिक चैंपियन शान क्रॉफर्ड ने कहा "बस वहां से बाहर आते ही...मुझे लगा जैसे कि मैं एक विडियो खेल में हूं, वह लड़का इतना तेज दौड़ रहा था।". बोल्ट ने विश्व चैंपियनशिप में अपने प्रदर्शन के एक महत्वपूर्ण कारक की चर्चा करते हुए कहा कि उन्होंने अपनी दौड़ शुरू की शुरुआत में सुधार किया है: जैसे 100 मीटर में उनका प्रतिक्रिया समय (0.146) और 200 मीटर में (0.133) की गति उस गति से काफी तेज है, जो बीजिंग ओलंपिक में उनके विश्व रिकार्ड दौड़ में हासिल हुआ था। हालांकि, जमैका की 4x100 मीटर रिले टीम के अन्य सदस्यों के साथ उनका प्रदर्शन 2008 के ग्रीष्मकालीन ओलंपिक के उनके 37.10 सेकेंड सेट के विश्व रिकार्ड की तुलना में गिर गया और उन्होंने 37.31 सेकेंड का समय लिया, जो हालांकि एक चैम्पियनशिप रिकार्ड उस समय तक के इतिहास में दूसरा सबसे तेज समय था।
बर्लिन चैंपियनशिप के अंतिम दिन, बर्लिन के गवर्निंग मेयर क्लाऊस वोवरिट ने एक छोटे समारोह में बोल्ट को 12-फुट उंची बर्लिन की दीवार का टुकड़ा भेंट की और कहा, बोल्ट ने दिखाया है कि " कोई उस दीवार को तोड़ सकता है, जिसे अजेय माना जाता है।" लगभग तीन टन के इस टुकड़े को बोल्ट के जमैका के प्रशिक्षण शिविर में रखा जायेगा.
बोल्ट के 100 मीटर और 200 मीटर स्पर्धाओं में विश्व रिकॉर्ड तोड़ने के कई दिनों के बाद लंबी कूद (1991 में बना 8.95 मीटर का) में विश्व रिकॉर्ड धारक माइक पावेल ने दलील दी कि बोल्ट 9 मीटर से अधिक लंबी कूद में सक्षम हो सकते हैं और लंबी कूद "उनकी ऊंचाई और गति के लिए एकदम उपयुक्त" है सीजन के अंत में वह लगातार दूसरे वर्ष आइएएएफ विश्व एथलीट ऑफ द इयर चुने गये।
निजी जीवन
बोल्ट नृत्य के प्रति अपने प्यार का इजहार करते हैं और उनका चरित्र अक्सर आरामपसंद और तनाव रहित माना जाता रहा है। बोल्ट के जमैकन ट्रैक और फील्ड के आदर्श खिलाड़ियों में हर्ब मैकेनले और 200 मीटर स्पर्धा में पूर्व जमैकन रिकार्ड धारक डॉन क्वेरी. 200 मीटर में पूर्व विश्व रिकार्ड और ओलंपिक पदक धारक माइकल जॉनसन शामिल हैं और उन्हें बोल्ट काफी सम्मान देते रहे हैं। सबसे पहले उनमें क्रिकेट के प्रति रुचि जगी और उन्होंने कहा कि अगर वे धावक नहीं होते तो एक तेज गेंदबाज होते. जब वे बच्चे थे तो पाकिस्तान के समर्थक थे और वकार यूनुस की गेंदबाजी की प्रशंसक थे। वे भारतीय[134] भारतीय[134] भारतीय[134] भारतीय[134] [134] भारतीय बल्लेबाज सचिन तेंडुलकर, वेस्ट इंडीज के के सलामी बल्लेबाज क्रिस गेल, पश्चिम और ऑस्ट्रेलियाई सलामी बल्लेबाज मैथ्यू हेडन के भी प्रशंसक हैं। बोल्ट ने फुटबॉल के लिए अपने प्यार को भी व्यक्त किया है और वे मैनचेस्टर यूनाइटेड के प्रशंसक है। मैनचेस्टर में दौड़ के बाद उन्होंने टीम के सदस्यों से उनके प्रशिक्षण स्थल पर मिले और राष्ट्रीय पुर्तगाली खिलाड़ी क्रिश्चियानो रोनाल्डो को दौड़ संबंधी सलाह की पेशकश की।
जमैका के किंग्सटन में, 2002 विश्व जूनियर चैंपियनशिप्स में 200 मीटर खिताब जीतने के बाद बोल्ट ने पुमा के साथ एक प्रायोजन समझौते पर हस्ताक्षर किए। चीन के बीजिंग में 2008 के समर ओलंपिक में बोल्ट के ओलंपिक उपलब्धियों के संवर्द्धन के लिए पुमा ने इचान स्टेडियम में बोल्ट के रिकार्ड बनाने वाली दौड़ सहित ओलंपिक की तैयारियों की एक वीडियो शृंखला जारी की है। न्यूयॉर्क शहर में विश्व रिकार्ड तोड़ने वाली दौड़ जीतने पर, जिसके बाद एक तेज तूफान आया, प्रेस ने इस जमैकन को मजाकिया लहजे में"लाइटनिंग बोल्ट" और "बोल्ट फ्राम द ब्लू" के उपनाम दिये। बीजिंग 2008 के 100 मीटर फाइनल में बोल्ट ने पुमा के सोने के तमगे पहने, जिसपर "बीजिंग 100 मीटर गोल्ड" उकेरा गया था। उनका एथलेटिक्स एजेंट पेस स्पोर्ट्स मैनेजमेंट है।
मान्यता
एथलेटिक्स में बोल्ट की सफलता के परिणामस्वरूप उन्हें 2009 को लौरस वर्ल्ड स्पोर्ट्समैन ऑफ द इयर नामित किया गया।
सांख्यिकी
व्यक्तिगत सर्वश्रेष्ठ
रिकॉर्डस
बोल्ट का 100 मीटर में 9.58 सेकेंड का समय अब तक का सबसे तेज व्यक्तिगत सर्वश्रेष्ठ वैधानिक समय है। मौजूदा ओलंपिक में बोल्ट के पास 9.683 सेकंड का दूसरा सबसे तेज (सटीक 9.683 सेकेंड) रिकॉर्ड भी है। 2008 के अमेरिकी ओलंपिक परीक्षण में टायसन गे ने 9.68 सेकेंड का समय दर्ज किया, लेकिन उन्हें 4.1 मि/से सेकेंड की गति से पीछे से आती हवा ने सहायता की, जिससे आइएएएफ द्वारा निर्धारित 2.0 मि/से के कानूनी सीमा से ज्यादा होने के कारण इसे विश्व रिकार्ड में शामिल नहीं किया जा सका 1996 में ओबडेले थाम्पसन की 9.69 सेकेंड की दौड़ को मान्यता नहीं मिली, क्योंकि उन्हें 5.01 मि/से सेकेंड की गति से पीछे से आती हवा ने सहायता की।
200 मीटर में बोल्ट का व्यक्तिगत 19.19 सेंकेंड का समय सर्वश्रेष्ठ विश्व रिकॉर्ड है। यह रिकार्ड बर्लिन में 2009 के विश्व एथलेटिक्स चैंपियनशिप में 0.3 सेकेंड की गति से सामने से आ रही हवा के बावजूद दर्ज किया गया। उन्होंने 19.30 सेकेंड के समय (सटीक 19.296 सेकेंड) रेफरी का नाम बर्लिनडाटा समय के साथ ओलंपिक रिकार्ड भी तोड़ा, बर्लिन 2009 के पहले का विश्व रिकॉर्ड भी तोड़ा- और इस तरह माइकल जॉनसन का पिछला विश्व रिकॉर्ड और 19.32 सेकेंड का ओलंपिक रिकार्ड भी टूट गया। बोल्ट और जॉनसन के रिकॉर्ड स्थापित करने वाली दौड़ के अगला सबसे तेज समय लगभग तीन दसवां अंश धीमा था। टायसन गे का सर्वश्रेष्ठ व्यक्तिगत समय 19.58 सेकेंड रहा। आइएएएफ के शीर्ष पांच धावकों में बोल्ट पहले गैर-अमेरिकी हैं।
2008 के ओलंपिक में बोल्ट सहित जमैकन रिले टीम ने 4x100 मीटर स्पर्धा में 37.10 सेकेंड के समय के साथ विश्व और ओलंपिक रिकॉर्ड कायम किया है। आइएएएफ के सर्वश्रेष्ठ दस प्रदर्शनों में केवल इसी दौड़ में अमेरिकी टीम ने स्थापित नहीं किया।
उम्र श्रेणियों -15 (20.58 सेकेंड),16 (20.13 सेकेंड युवा विश्व रिकार्ड), 17 (19.93 सेकेंड) और 18 (19.93 सेकेंड विश्व जूनियर रिकॉर्ड) के लिए बोल्ट के नाम 200 मीटर में विश्व के सर्वश्रेष्ठ किशोर के परिणाम दर्ज है। उन्होंने 2009 के दौरान 150 मीटर की दूरी में विश्व का सर्वश्रेष्ठ प्दुरदश्यार्शन किया, जिसके दौरान वे 8.70 सेकेंड में अंतिम 100 मीटर की दूरी तय की, यह 100 मीटर स्पर्धा में अब तक की सबसे तेज दौड़ थी।
सम्मान
इन्हें भी देखें
पुरुषों की 100 मीटर के विश्व रिकॉर्ड में प्रगति
पुरुषों की 200 मीटर के विश्व रिकॉर्ड में प्रगति
कई ओलंपिक स्वर्ण पदक जीतने की सूची
जमैका में एथलेटिक्स
ओलंपिक में जमैका
सन्दर्भ
बाहरी कड़ियाँ
आधिकारिक वेबसाइट
उसैन बोल्ट टाइमलाइन बनाम द डेली टेलीग्राफ
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1986 में जन्मे लोग
जीवित लोग
तेज़ धावक
2004 ग्रीष्मकालीन ओलंपिक में एथलेटिक्स
2008 ग्रीष्मकालीन ओलंपिक में एथलेटिक्स
जमैकन धावक
गूगल परियोजना
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बरेली छावनी उत्तर भारतीय राज्य उत्तर प्रदेश के बरेली जिले में स्थित एक छावनी नगर है।
इतिहास
बरेली नगर, और पूरा रुहेलखंड क्षेत्र १८०१ में ईस्ट इण्डिया कम्पनी के आधिपत्य में आया था। इसके पश्चात १८११ में बरेली छावनी की स्थापना हुई। इसी समय में नगर के दक्षिण में एक छोटे से किले का निर्माण किया गया था, और कुछ साल बाद, छावनी क्षेत्र में पूरे नगर की तुलना में कहीं अधिक इमारतें थीं।
१८५७ के भारतीय विद्रोह में बरेली नगर ने एक प्रमुख भूमिका निभाई, और इसके परिणामस्वरूप छावनी को बड़ी क्षति पहुंची। जब १८५८ में बरेली पर अंग्रेजों ने कब्जा कर लिया, तो छावनी क्षेत्र में नियमित ब्रिटिश सैनिकों को तैनात किया गया था। उस समय छावनी क्षेत्र मुख्य रूप से तीन भागों में विभाजित था; भारतीय इन्फैंट्री लाइन पूर्वी भाग में थी, ब्रिटिश इन्फैंट्री लाइन और एक भारतीय बटालियन मध्य भाग में थी, जबकि आर्टिलरी लाइन छावनी के पश्चिमी भाग में तैनात थी।
भूगोल
बरेली छावनी १७.१२ वर्ग किलोमीटर (६.६१ वर्ग मील) के क्षेत्रफल में फैली हुई है। यह चारों तरफ से बरेली नगर से घिरी हुई है और नगर के केंद्र के दक्षिण में स्थित है। इसके उत्तर में सिविल लाइंस, दक्षिण में कांधरपुर, चनेहटी और ठिरिया निज़ावत खाँ, और इसके पूर्व में नकटिया और भरतौल स्थित हैं जबकि एक रेलवे लाइन इसे पश्चिम में सुभाष नगर कालोनी से अलग करती है। छावनी में फूल बाग गार्डन और आर्मी इकोलॉजिकल पार्क एंड ट्रेनिंग एरिया (एप्टा) (जिसमें एक गोल्फ कोर्स भी है) सहित कई हरित क्षेत्र स्थित हैं।
जनसांख्यिकी
२०११ की भारत की जनगणना के अनुसार, बरेली छावनी की जनसंख्या ३०,००३ है। पुरुष कुल जनसंख्या का ५९.१% और महिलाएं ४०.९% हैं। बरेली छावनी की औसत साक्षरता दर ८७.९१% है, जो राष्ट्रीय औसत ५९.५% से अधिक है; ९२.५४% पुरुष और ८१.०९% महिलाएं साक्षर हैं। १०.४५% जनसंख्या की आयु ६ वर्ष से कम है।
प्रमुख इकाइयाँ / संरचनाएँ
जाट रेजिमेंटल सेंटर (जेआरसी)
मुख्यालय उत्तर भारत क्षेत्र
मुख्यालय 6 माउंटेन डिवीजन
जूनियर लीडर्स एकेडमी (जेएलए)
आवागमन
बरेली छावनी दिल्ली और लखनऊ से २५० किलोमीटर (१६० मील), आगरा से २२० किलोमीटर (१४० मील) और नैनीताल से १४५ किलोमीटर (९० मील) की दूरी पर स्थित है। बरेली जंक्शन रेलवे स्टेशन (स्टेशन कोड: बीई) छावनी की पश्चिमी सीमा के पास स्थित है, जबकि बरेली कैंट रेलवे स्टेशन (स्टेशन कोड: बीआरवाईसी) इसके दक्षिण में स्थित है। बरेली सैटेलाइट बस अड्डा छावनी की पूर्वी सीमा के पास स्थित है।
संदर्भ
बाहरी कड़ियाँ
बरेली छावनी बोर्ड की वेबसाइट
बरेली जिले की वेबसाइट
भारत के कैंटोनमेंट
बरेली ज़िले के नगर
विकिडेटा पर उपलब्ध निर्देशांक
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दिए गए शीर्षक के अनुरूप एक पाठ यह हो सकता है: भाजपा के मुख्यमंत्री पद के उम्मीदवार हर्षवर्धन ने रविवार की रात कहा कि वह दिल्ली में सरकार बनाने का दावा नहीं करेंगे क्योंकि उनकी पार्टी के पास स्पष्ट बहुमत नहीं है और संख्या बल जुटाने के लिए विधायकों की 'खरीद-फरोख्त' में शामिल होने की बजाय वह विपक्ष में बैठना पसंद करेंगे।
दिल्ली विधानसभा चुनाव में 31 सीटें हासिल करके भाजपा सबसे बड़े राजनीतिक दल के रूप में उभरी है। 70 सदस्यीय विधानसभा में बहुमत के लिए उसे 36 सीटों की दरकार है।
उन्होंने कहा, 'मुझे नहीं पता कि क्या होने वाला है, लेकिन मैं खुद को बेबस महसूस कर रहा हूं क्योंकि जहां मैंने उन्हें एक पारदर्शी प्रशासन देने का वादा किया था वहीं मेरे पास दिल्ली में सरकार बनाने का दावा करने के लिए जरूरी संख्या बल नहीं है। इसलिए मैं सच में नहीं जानता कि क्या होने वाला है।'
उन्होंने कहा, 'चूंकि मेरे पास 36 का जादुई आंकड़ा नहीं है इसलिए मैं दिल्ली में सरकार के गठन का हिस्सा नहीं हो सकता, लेकिन मैं पूरे समर्पण और जिम्मेदारी के साथ जनता की सेवा करता रहूंगा। मैं निस्वार्थ भाव से विपक्ष में बैठना पसंद करूंगा और किसी के भी द्वारा बनाई जाने वाली सरकार को जनसेवा के लिए पूरा सहयोग दूंगा।'
वर्धन ने कहा कि जहां तक उनका सवाल है, वह प्रत्यक्ष अथवा परोक्ष रूप से ऐसा कोई काम नहीं करेंगे, जिसे विधायकों की खरीदफरोख्त माना जा सकता हो।
उन्होंने यह भी स्वीकार किया कि उन्होंने और उनकी पार्टी ने आप की ताकत को समझने में गलती की।
उन्होंने कहा, 'मैं ईमानदारी से स्वीकार करता हूं कि मैंने आप को मिल रहे समर्थन को कम करके आंका। मैं चुनाव में अच्छे प्रदर्शन के लिए केजरीवाल को बधाई देना चाहूंगा। मुझे लगता है कि हमने उनकी मौजूदगी को कम करके आंका। मुझे नहीं लगता कि सांगठनिक तौर पर हमें आप से कुछ सीखने की जरूरत है।'
वर्धन ने कहा, 'सांगठनिक रूप से हम बेहतर हैं। नयी पार्टी के प्रति हमेशा एक उत्साह होता है। लोगों ने अन्ना हजारे के आंदोलन का भी समर्थन किया था, जो एक निस्वार्थ आंदोलन था। यह पार्टी आंदोलन की उपज के तौर पर सामने आई।'
उन्होंने कहा कि आप ने बहुत ऊंचे मनोबल के साथ बहुत सी अच्छी बातें दिखाकर शुरुआत तो की थी, लेकिन मुझे दुख है कि वह अपने वादे के अनुसार बहुत सी चीजें नहीं कर सके।
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राष्ट्रीय उद्यान सेवा (एनपीएस) संयुक्त राज्य अमेरिका की संघीय सरकार की एक एजेंसी है जो सभी राष्ट्रीय उद्यानों, कई राष्ट्रीय स्मारकों और विभिन्न शीर्षक पदनाम के साथ अन्य संरक्षित और ऐतिहासिक स्थलों का प्रबंधन करती है। यह 25 अगस्त, 1916 को कांग्रेस द्वारा राष्ट्रीय उद्यान सेवा ऑर्गेनिक अधिनियम के माध्यम से बनाया गया था और यह संयुक्त राज्य अमेरिका के आंतरिक विभाग की एक एजेंसी है। एनपीएस को प्रबंधन हेतु सौंपे गए स्थलों की पारिस्थितिक और ऐतिहासिक अखंडता के संरक्षण के साथ ही साथ इन्हें सार्वजनिक उपयोग और आनंद के लिए उपलब्ध और सुलभ बनाना जैस कार्य भी सौंपा गया हैं।
, एनपीएस में लगभग 12,363 कर्मचारी कार्यरत हैं, जो 419 इकाइयों की देखरेख करते हैं, जिनमें से 62 राष्ट्रीय उद्यान हैं।
इतिहास
1916 में अपनी स्थापना के बाद से, राष्ट्रीय उद्यान सेवा संयुक्त राज्य के प्रत्येक राष्ट्रीय उद्यानों को प्रबंधित करता है, जिनकी संख्या हाल के वर्षों में बढ़कर 62 हो गई हैं।
बजट
2016 तक, राष्ट्रीय उद्यान सेवा का वार्षिक बजट लगभग 3 बिलियन डॉलर और रखरखाव बैकलॉग के लिये अनुमानित 12 बिलियन डॉलर का है। राष्ट्रीय उद्यान सेवा बजट दो प्राथमिक क्षेत्रों, विवेकाधीन और अनिवार्य खर्चों में विभाजित है।
आगंतुक
2015 में 307 मिलियन से अधिक आगंतुकों के साथ, राष्ट्रीय उद्यान सेवा के 419 इकाइयों को देखने प्रत्येक वर्ष 280 मिलियन से अधिक आगंतुक आते है।
विश्व धरोहर स्थल
विश्व धरोहर स्थलों में पर्याप्त सार्वभौमिक रूप से मान्यता प्राप्त प्राकृतिक और सांस्कृतिक विशेषताएं होती है, जिन्हें दुनिया के सभी लोगों द्वारा संरक्षण के लिए योग्य माना जाता हैं। संयुक्त राज्य अमेरिका में 24 विश्व धरोहर स्थलों में से 16 के रखरखाव के लिये राष्ट्रीय उद्यान सेवा जिम्मेदार है।
चित्र दीर्घा
सन्दर्भ
संयुक्त राज्य अमेरिका
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भारतीय क्रिकेट टीम को इंग्लैंड के साथ जारी पांच मैचों की एकदिवसीय श्रृंखला के बाकी बचे चार मैच अब सचिन तेंदुलकर के बगैर खेलने होगे। तेंदुलकर के दाएं पैर के अंगूठे में चोट है और इससे उबरने में उन्हें चार सप्ताह का समय लगेगा। तेंदुलकर जल्द ही स्वदेश लौटेंगे। उनके स्थान पर एस. बद्रीनाथ को इंग्लैंड भेजा जाएगा। तेंदुलकर को चेस्टर-ली-स्ट्रीट में शनिवार को खेले गए पहले एकदिवसीय मुकाबले से पूर्व चोट लगी थी। अभ्यास सत्र के दौरान लगी इस चोट के कारण तेंदुलकर बारिश के कारण रद्द किए गए उस मुकाबले के लिए अंतिम एकादश का हिस्सा नहीं थे। भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) की ओर से जारी एक बयान में कहा गया है कि तेंदुलकर ने लंदन में सोमवार को विशेषज्ञ डॉक्टर की मदद ली, जिसके बाद उनके श्रृंखला से बाहर होने की पुष्टि हो सकी। बोर्ड ने कहा है कि तेंदुलकर का कोई स्थानापन्न इंग्लैंड नहीं भेजा जाएगा। इसके साथ तेंदुलकर का इंग्लैंड में अपना 100वां अंतरराष्ट्रीय शतक पूरा करने का सपना अधूरा रह गया। चार मैचों की टेस्ट श्रृंखला में तेंदुलकर शतक नहीं पूरा कर सके थे। एकदिवसीय मुकाबलों में उनके बल्ले से शतक निकलने की सम्भावना थी लेकिन अब वह भी खत्म हो गई है।
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डोरोथी स्टुअर्ट हैमिल (जन्म 26 जुलाई, 1956) एक सेवानिवृत्त अमेरिकी फ़िगर स्केटर हैं। वह 1976 ओलंपिक चैंपियन और महिला एकल में 1976 विश्व चैंपियन हैं।
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फ़ाइनेस बढ़िया टिन-ग्लेज़्ड मिट्टी के बर्तनों के लिए सामान्य अंग्रेजी भाषा का शब्द है। चित्रित सजावट के लिए उपयुक्त सफेद मिट्टी के बर्तनों के शीशे का आविष्कार, सीसे के शीशे की स्लिप में टिन के ऑक्साइड को मिलाकर, मिट्टी के बर्तनों के इतिहास में एक बड़ी प्रगति थी। ऐसा प्रतीत होता है कि यह आविष्कार नौवीं शताब्दी से पहले ईरान या मध्य पूर्व में किया गया था। इस परिणाम को प्राप्त करने के लिए 1,000 डिग्री सेल्सियस (1,830 डिग्री फ़ारेनहाइट) से अधिक तापमान पैदा करने में सक्षम भट्टी की आवश्यकता थी, जो परिष्कृत मिट्टी के बर्तन बनाने की सहस्राब्दियों की परंपराओं का परिणाम था। यह शब्द अब दुनिया के कई हिस्सों से विभिन्न प्रकार के मिट्टी के बर्तनों के लिए उपयोग किया जाता है, जिसमें कई प्रकार के यूरोपीय चित्रित बर्तन भी शामिल हैं, जिन्हें अक्सर चीनी मिट्टी के बरतन शैलियों के सस्ते संस्करणों के रूप में उत्पादित किया जाता है।
अंग्रेजी आम तौर पर फ़ाइनेस के प्रसिद्ध उप-प्रकारों के लिए कई अन्य शब्दों का उपयोग करती है। इतालवी टिन-ग्लेज़्ड मिट्टी के बर्तन, कम से कम शुरुआती रूपों को, अंग्रेजी में मायोलिका कहा जाता है, डच बर्तनों को डेल्फ़्टवेयर कहा जाता है, और उनके अंग्रेजी समकक्ष अंग्रेजी डेल्फ़्टवेयर, फ्रेंच, जर्मन, स्पेनिश, पुर्तगाली सामानों के लिए अंग्रेजी में सामान्य शब्द के रूप में "फ़ाइनेस" को छोड़ देते हैं। और अन्य देशों का उल्लेख नहीं किया गया है (यह सामान्य फ्रांसीसी शब्द भी है, और जर्मन में फ़ेयेंस भी है)। फ़ाइनेस नाम इटली के रवेना के पास रोमाग्ना में फ़ेंज़ा का फ्रांसीसी नाम है, जहां एक साफ, अपारदर्शी शुद्ध-सफेद जमीन पर चित्रित माजोलिका बर्तन, पंद्रहवीं शताब्दी की शुरुआत में निर्यात के लिए तैयार किया गया था।
15वीं सदी के मैनिसेज़ का हिस्पानो-मोरेस्क वेयर डिश, यूरोपीय फ़ाइनेस का सबसे प्रारंभिक प्रकार
तकनीकी रूप से, सीसा-चमकता हुआ मिट्टी के बर्तन, जैसे कि फ्रांसीसी सोलहवीं शताब्दी के सेंट-पोरचेयर वेयर, उचित रूप से फ़ाइनेस के रूप में योग्य नहीं हैं, लेकिन आमतौर पर अंतर बनाए नहीं रखा जाता है। अर्ध-कांचयुक्त पत्थर के बर्तनों को फ़ाइनेस की तरह चमकाया जा सकता है। मिस्र का फ़ाइनेस वास्तव में फ़ाइनेस या मिट्टी के बर्तन बिल्कुल भी नहीं है, बल्कि कांच के टुकड़े से बना है, और कांच के बहुत करीब है।
अंग्रेजी में 19वीं सदी के उपयोग में "फ़ाइनेस" का उपयोग अक्सर "रंगीन ग्लेज़ से सजाए गए राहत मॉडलिंग के साथ किसी भी मिट्टी के बर्तन" का वर्णन करने के लिए किया जाता था, जिसमें बहुत चमकीला वास्तुशिल्प टेराकोटा और विक्टोरियन माजोलिका शामिल थे, जो शब्द के अर्थों की सूची में और अधिक जटिलता जोड़ते हैं।
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सेंसेक्स में मंगलवार को अच्छी तेजी देखी गई. बीएसई का 30 शेयरों वाला प्रमुख सूचकांक 358 .01 अंकों की बढ़त के साथ 20929.01 अंक और एनएसई का 50 शेयरों वाला निफ्टी 119.80 अंकों की बढ़त के साथ 6220.90 के स्तर पर बंद हुआ.
बताया जा रहा है कि शेयर बाजारों में आई तेजी का कारण यूएस द्वारा राहत पैकेज में कटौती की आशंका का खत्म होना है. यूएस में सितंबर महीने के औद्योगिक आंकड़े उम्मीद से खराब आए हैं. वहां सेकेंड्री मार्केट में घरों की मांग में भी कमी आई है, ऐसे में यूएस द्वारा राहत पैकेज में कटौती की संभावना बेहद ही कम है.
यूएस की इकनॉमी में कुछ खास सुधार नहीं आने की वजह से मंगलवार को भी विदेशी संस्थागत निवेशकों (एफआईआई) का रुझान भारतीय शेयर बाजारों में बना रहा. पिछले एक हफ्ते से एफआईआई भारतीय शेयर बाजारों में लगातार खरीदारी कर रहे हैं.
आरबीआई ने मंगलवार को रेपो रेट में 0.25 फीसदी की वृद्धि की लेकिन भारतीय शेयर बाजारों पर इसका प्रभाव देखने को नहीं मिला. दरअसल निवेशकों को पहले से ही अनुमान था कि मंगलवार को आरबीआई रेपो रेट बढ़ा सकता है, ऐसे में सोमवार को ही इसका असर भारतीय शेयर बाजारों पर देखने को मिल गया था. सोमवार को शेयर बाजारों में गिरावट देखी गई थी.
सोने में गिरावट
सोने की कीमतों में मंगलवार को अच्छी गिरावट देखने को मिली. मंगलवार शाम प्रति 10 ग्राम सोने की कीमत 492 रुपये की कमी के साथ 30,266 रुपये रही. सोने की कीमतों में आई गिरावट की वजह जानकार प्रॉफिट बुकिंग बता रहे हैं.
इंवेस्टमेंट कंपनी एसमसी ग्लोबल की कमोडिटीज रिसर्च हेड वंदना भारती के अनुसार सोने की कीमत चूंकि पिछले दिनों से बढ़ रही थी मंगलवार को कीमत में आई गिरावट की वजह प्रॉफिट बुकिंग है. वहीं भारतीय अर्थव्यवस्था की स्थिति चूंकि अभी अच्छी नहीं रहने वाली धनतेरस के बाद सोने की मांग में तेज गिरावट देखी जा सकती है.
रुपया मजबूत
मंगलवार को डॉलर के मुकाबले रुपया मजबूत हुआ. मंगलवार को एक डॉलर की कीमत 16 पैसे की मजबूती की साथ 61.38 रुपये रही. रुपये में मजबूती की वजह आरबीआई द्वारा रेपो रेट बढ़ाया जाना रहा.
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जेवर-बुलंदशहर राजमार्ग पर हुई डकैती और कथित सामूहिक बलात्कार के मामले में पुलिस को अपराध स्थल से किसी भी मोबाइल फोन का कॉल रिकॉर्ड नहीं मिला है. इससे इस मामले में पुलिस को निराशा हाथ लगी है. पुलिस 25 मई को जेवर क्षेत्र में यमुना एक्सप्रेस पर हुई वारदात के पांच अपराधियों को पकड़ने के लिए अपने सूचना नेटवर्क पर अब निर्भर है. दरअसल 25 मई को आठ व्यक्ति बुलंदशहर जा रहे थे, जिनसे जेवर क्षेत्र में यमुना एक्सप्रेस पर लूटपाट की गई. इस समूह की चार महिलाओं के साथ कथित तौर पर बलात्कार हुआ जबकि एक पुरष की अपराधियों ने हत्या कर दी. उत्तर प्रदेश पुलिस के विशेष कार्यबल (एसटीएफ) के वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि पुलिस ने पाया है कि अपराधियों ने अपराध के दौरान मोबाइल फोन का इस्तेमाल नहीं किया था.
जेवर पुलिस और उत्तर प्रदेश विशेष कार्य बल दल ने अपराध स्थल क्षेत्र में 25 मई की रात एक बजे से सुबह चार बजे तक के कॉल डिटेल की जांच की है और पाया है कि उस समय क्षेत्र में 2500 फोन नंबर काम कर रहे थे. अधिकारी ने बताया कि इन फोन नंबरों की कॉल डिटेल की जांच की गई है लेकिन कुछ भी संदिग्ध नहीं मिला. उन्होंने बताया कि हो सकता है कि अपराधियों ने अपराध के दौरान पुलिस के डर से फोन का इस्तेमाल न किया हो.
अधिकारियों ने बताया कि पीड़ितों के तीन मोबाइन फोन भी अपराध के दौरान काम नहीं कर रहे थे. पीड़ितों से अपराधियों ने कथित तौर पर फोन छीन लिया था. पुलिस ने पीड़ितों को 100 संदिग्ध लोगों की तस्वीरें भी दिखाई है लेकिन वह अपराधियों को पहचानने में नाकामयाब हैं. अधिकारी ने बताया कि पीड़ितों का कहना है कि अपराध के समय काफी अंधेरा था जिससे अपराधियों की पहचान तस्वीर से करना मुश्किल है. वहीं पीड़ित के परिवार के लोगों ने कल जेवर तहसील में प्रदर्शन किया और अपराधियों की गिरफ्तारी की मांग की. उन्होंने न्याय नहीं मिलने पर आत्महत्या की धमकी भी दी है.
पीड़ितों के परिवारवालों ने कहा कि वह उत्तर प्रदेश के उपमुख्यमंत्री से उनके नोएडा दौरे के दौरान कल उनसे मिलेंगे और अपराधियों की गिरफ्तारी की मांग करेंगे. वहीं नोएडा के पूर्व विधायक और भाजपा नेता विमला बाथम ने दावा किया है कि पीड़ित परिवार पुलिस द्वारा प्रारंभिक जांच में बलात्कार की घटना को नकारने से नाराज है. उन्होंने दावा किया है कि पुलिस को पीड़ितों के खिलाफ बयान देने की अपेक्षा अपराधियों को गिरफ्तार करने पर ध्यान देना चाहिए.टिप्पणियां
वहीं 26 मई को पुलिस ने चार लोगों को यमुना एक्सप्रेस वे पर लूटपाट और कथित बलात्कार की घटना में पूछताछ के लिए हिरासत में लिया था. जेवर के पुलिस उपाधीक्षक दिलीप सिंह ने कहा, ‘‘जैसे ही हम संदिग्धों के शामिल होने की पुष्टि करेंगे. हम उन्हें गिरफ्तार करेंगे. वहीं अन्य संदिग्ध्य लोगों से भी पूछताछ हो रही है.(हेडलाइन के अलावा, इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है, यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
जेवर पुलिस और उत्तर प्रदेश विशेष कार्य बल दल ने अपराध स्थल क्षेत्र में 25 मई की रात एक बजे से सुबह चार बजे तक के कॉल डिटेल की जांच की है और पाया है कि उस समय क्षेत्र में 2500 फोन नंबर काम कर रहे थे. अधिकारी ने बताया कि इन फोन नंबरों की कॉल डिटेल की जांच की गई है लेकिन कुछ भी संदिग्ध नहीं मिला. उन्होंने बताया कि हो सकता है कि अपराधियों ने अपराध के दौरान पुलिस के डर से फोन का इस्तेमाल न किया हो.
अधिकारियों ने बताया कि पीड़ितों के तीन मोबाइन फोन भी अपराध के दौरान काम नहीं कर रहे थे. पीड़ितों से अपराधियों ने कथित तौर पर फोन छीन लिया था. पुलिस ने पीड़ितों को 100 संदिग्ध लोगों की तस्वीरें भी दिखाई है लेकिन वह अपराधियों को पहचानने में नाकामयाब हैं. अधिकारी ने बताया कि पीड़ितों का कहना है कि अपराध के समय काफी अंधेरा था जिससे अपराधियों की पहचान तस्वीर से करना मुश्किल है. वहीं पीड़ित के परिवार के लोगों ने कल जेवर तहसील में प्रदर्शन किया और अपराधियों की गिरफ्तारी की मांग की. उन्होंने न्याय नहीं मिलने पर आत्महत्या की धमकी भी दी है.
पीड़ितों के परिवारवालों ने कहा कि वह उत्तर प्रदेश के उपमुख्यमंत्री से उनके नोएडा दौरे के दौरान कल उनसे मिलेंगे और अपराधियों की गिरफ्तारी की मांग करेंगे. वहीं नोएडा के पूर्व विधायक और भाजपा नेता विमला बाथम ने दावा किया है कि पीड़ित परिवार पुलिस द्वारा प्रारंभिक जांच में बलात्कार की घटना को नकारने से नाराज है. उन्होंने दावा किया है कि पुलिस को पीड़ितों के खिलाफ बयान देने की अपेक्षा अपराधियों को गिरफ्तार करने पर ध्यान देना चाहिए.टिप्पणियां
वहीं 26 मई को पुलिस ने चार लोगों को यमुना एक्सप्रेस वे पर लूटपाट और कथित बलात्कार की घटना में पूछताछ के लिए हिरासत में लिया था. जेवर के पुलिस उपाधीक्षक दिलीप सिंह ने कहा, ‘‘जैसे ही हम संदिग्धों के शामिल होने की पुष्टि करेंगे. हम उन्हें गिरफ्तार करेंगे. वहीं अन्य संदिग्ध्य लोगों से भी पूछताछ हो रही है.(हेडलाइन के अलावा, इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है, यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
अधिकारियों ने बताया कि पीड़ितों के तीन मोबाइन फोन भी अपराध के दौरान काम नहीं कर रहे थे. पीड़ितों से अपराधियों ने कथित तौर पर फोन छीन लिया था. पुलिस ने पीड़ितों को 100 संदिग्ध लोगों की तस्वीरें भी दिखाई है लेकिन वह अपराधियों को पहचानने में नाकामयाब हैं. अधिकारी ने बताया कि पीड़ितों का कहना है कि अपराध के समय काफी अंधेरा था जिससे अपराधियों की पहचान तस्वीर से करना मुश्किल है. वहीं पीड़ित के परिवार के लोगों ने कल जेवर तहसील में प्रदर्शन किया और अपराधियों की गिरफ्तारी की मांग की. उन्होंने न्याय नहीं मिलने पर आत्महत्या की धमकी भी दी है.
पीड़ितों के परिवारवालों ने कहा कि वह उत्तर प्रदेश के उपमुख्यमंत्री से उनके नोएडा दौरे के दौरान कल उनसे मिलेंगे और अपराधियों की गिरफ्तारी की मांग करेंगे. वहीं नोएडा के पूर्व विधायक और भाजपा नेता विमला बाथम ने दावा किया है कि पीड़ित परिवार पुलिस द्वारा प्रारंभिक जांच में बलात्कार की घटना को नकारने से नाराज है. उन्होंने दावा किया है कि पुलिस को पीड़ितों के खिलाफ बयान देने की अपेक्षा अपराधियों को गिरफ्तार करने पर ध्यान देना चाहिए.टिप्पणियां
वहीं 26 मई को पुलिस ने चार लोगों को यमुना एक्सप्रेस वे पर लूटपाट और कथित बलात्कार की घटना में पूछताछ के लिए हिरासत में लिया था. जेवर के पुलिस उपाधीक्षक दिलीप सिंह ने कहा, ‘‘जैसे ही हम संदिग्धों के शामिल होने की पुष्टि करेंगे. हम उन्हें गिरफ्तार करेंगे. वहीं अन्य संदिग्ध्य लोगों से भी पूछताछ हो रही है.(हेडलाइन के अलावा, इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है, यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
पीड़ितों के परिवारवालों ने कहा कि वह उत्तर प्रदेश के उपमुख्यमंत्री से उनके नोएडा दौरे के दौरान कल उनसे मिलेंगे और अपराधियों की गिरफ्तारी की मांग करेंगे. वहीं नोएडा के पूर्व विधायक और भाजपा नेता विमला बाथम ने दावा किया है कि पीड़ित परिवार पुलिस द्वारा प्रारंभिक जांच में बलात्कार की घटना को नकारने से नाराज है. उन्होंने दावा किया है कि पुलिस को पीड़ितों के खिलाफ बयान देने की अपेक्षा अपराधियों को गिरफ्तार करने पर ध्यान देना चाहिए.टिप्पणियां
वहीं 26 मई को पुलिस ने चार लोगों को यमुना एक्सप्रेस वे पर लूटपाट और कथित बलात्कार की घटना में पूछताछ के लिए हिरासत में लिया था. जेवर के पुलिस उपाधीक्षक दिलीप सिंह ने कहा, ‘‘जैसे ही हम संदिग्धों के शामिल होने की पुष्टि करेंगे. हम उन्हें गिरफ्तार करेंगे. वहीं अन्य संदिग्ध्य लोगों से भी पूछताछ हो रही है.(हेडलाइन के अलावा, इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है, यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
वहीं 26 मई को पुलिस ने चार लोगों को यमुना एक्सप्रेस वे पर लूटपाट और कथित बलात्कार की घटना में पूछताछ के लिए हिरासत में लिया था. जेवर के पुलिस उपाधीक्षक दिलीप सिंह ने कहा, ‘‘जैसे ही हम संदिग्धों के शामिल होने की पुष्टि करेंगे. हम उन्हें गिरफ्तार करेंगे. वहीं अन्य संदिग्ध्य लोगों से भी पूछताछ हो रही है.(हेडलाइन के अलावा, इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है, यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
(हेडलाइन के अलावा, इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है, यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
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दीपिका पादुकोण की नाक काटने की धमकी और उन पर पांच करोड़ का इनाम रखे जाने के बाद अब ऐसी ही एक और घोषणा हुई है. अखिल भारतीय क्षत्रिय महासभा (एबीकेएम) ने अब दीपिका को जिंदा जलाने वाले को एक करोड़ रुपए का इनाम देने की घोषणा की है.
फिल्म पद्मावती की रिलीज का विरोध थमने का नाम नहीं ले रहा है. आखिरकार निर्माताओं को फिल्म की रिलीज डेट टालनी पड़ी. देश के विभिन्न हिस्सों में इस फिल्म का विरोध हो रहा है. बरेली में संजय लीला भंसाली और दीपिका पादुकोण का पुतला जलाए जाने के बाद अब अखिल भारतीय क्षत्रिय महासभा के अध्यक्ष भुवनेश्वर सिंह ने घोषणा की कि यदि कोई दीपिका पादुकोण को जौहर कराता है तो उसे एक करोड़ रुपए का इनाम दिया जाएगा.
क्या झूठ बोल रहे हैं पद्मावती के निर्माता? सेंसर ने वापस कर दी है फिल्म
भुवनेश्वर सिंह ने कहा कि वे दीपिका पादुकोण को यह अहसास कराना चाहते हैं कि जब रानी पद्मावती ने अपने राजवंश के लिए जौहर किया था तो कैसा लगा था. इसके बाद दीपिका पद्मावती का रियल कैरेक्टर जानेंगी. बता दें कि इससे पहले क्षत्रीय समाज भंसाली और दीपिका के सिर पर पांच करोड़ रुपए का इनाम रख चुका है.
लगातार कई संगठनों के विरोध का सामना कर रही फिल्म पद्मावती के मेकर्स ने आखिरकार इस फिल्म की रिलीज को स्थिगत कर दिया है. वायकॉम 18 मोशन पिक्चर्स की ओर से जारी एक आधिकारिक बयान में कहा गया है कि 1 दिसंबर 2017 को रिलीज होने जा रही फिल्म पद्मावती को स्थगित किया गया है.
क्या टल गई पद्मावती की रिलीज? जीत करणी सेना की नहीं, फायदे में सिर्फ भंसाली
जानें क्या कहा गया है बयान में:
वायकॉम 18 मोशन पिक्चर्स की ओर से जारी इस बयान में कहा गया है, 'पद्मावती' को बनाने के पीछे जिस स्टूडियो ने काम किया है वह स्वेच्छा से 1 दिसंबर 2017 को होने वाली फिल्म रिलीज को स्थगित करता है. सबसे प्रतिभाशाली फिल्म निर्माताओं में एक संजय लीला भंसाली के साथ वायाकॉम 18 मोशन पिक्चर्स ने एक सुंदर सिनेमाई मास्टरपीस बनाई है 'पद्मावती'. जिसमें राजपूत वीरता, गरिमा और परंपरा को फिल्माया गया है. यह फिल्म एक ऐसी कहानी है जो सभी भारतीयों को गर्व से भर देगी और दुनिया भर में हमारे देश की कहानी को बयां करने के कौशल का प्रदर्शन करती है.'
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दिए गए शीर्षक के अनुरूप एक पाठ यह हो सकता है: उत्तर प्रदेश के फिरोजाबाद जिले में हुई एक झकझोरने वाली वारदात में एक ट्रेन में सवार यात्री को कुछ लोगों ने रेलवे स्टेशन पर उतारा और कथित तौर पर बुरी तरह पीट-पीटकर मार डाला.
राजकीय रेलवे पुलिस (जीआरपी) के सूत्रों ने बताया कि दिल्ली से रविवार की रात चली आनन्द विहार एक्सप्रेस ट्रेन देर रात जीआरपी क्षेत्र टूण्डला के पास चमरौला स्टेशन पर रुकी थी, तभी उसमें सवार करीब 25 वर्षीय एक युवक को अचानक कुछ लोगों ने प्लेटफार्म पर उतारकर उसे लात-घूंसों से पीटना शुरू कर दिया.टिप्पणियां
रेलगाड़ी में बड़ी संख्या में सवार यात्री और रेलवे स्टेशन पर मौजूद लोग जब तक माजरा समझ पाते, युवक को इतनी बुरी तरह पीटा गया कि उसकी मौत हो गयी. हत्यारे शव को ट्रेन में डालकर भाग गये.
सूचना मिलने पर जीआरपी ने ट्रेन को सोमवार की सुबह शिकोहाबाद रेलवे स्टेशन पर रुकवाकर शव को बाहर निकाला. उसकी तत्काल शिनाख्त नहीं हुई है. शव को पोस्टमार्टम के लिए जिला अस्पताल भेजा जा रहा है. उसकी जेब से दिल्ली से मैनपुरी का टिकट मिला है.
राजकीय रेलवे पुलिस (जीआरपी) के सूत्रों ने बताया कि दिल्ली से रविवार की रात चली आनन्द विहार एक्सप्रेस ट्रेन देर रात जीआरपी क्षेत्र टूण्डला के पास चमरौला स्टेशन पर रुकी थी, तभी उसमें सवार करीब 25 वर्षीय एक युवक को अचानक कुछ लोगों ने प्लेटफार्म पर उतारकर उसे लात-घूंसों से पीटना शुरू कर दिया.टिप्पणियां
रेलगाड़ी में बड़ी संख्या में सवार यात्री और रेलवे स्टेशन पर मौजूद लोग जब तक माजरा समझ पाते, युवक को इतनी बुरी तरह पीटा गया कि उसकी मौत हो गयी. हत्यारे शव को ट्रेन में डालकर भाग गये.
सूचना मिलने पर जीआरपी ने ट्रेन को सोमवार की सुबह शिकोहाबाद रेलवे स्टेशन पर रुकवाकर शव को बाहर निकाला. उसकी तत्काल शिनाख्त नहीं हुई है. शव को पोस्टमार्टम के लिए जिला अस्पताल भेजा जा रहा है. उसकी जेब से दिल्ली से मैनपुरी का टिकट मिला है.
रेलगाड़ी में बड़ी संख्या में सवार यात्री और रेलवे स्टेशन पर मौजूद लोग जब तक माजरा समझ पाते, युवक को इतनी बुरी तरह पीटा गया कि उसकी मौत हो गयी. हत्यारे शव को ट्रेन में डालकर भाग गये.
सूचना मिलने पर जीआरपी ने ट्रेन को सोमवार की सुबह शिकोहाबाद रेलवे स्टेशन पर रुकवाकर शव को बाहर निकाला. उसकी तत्काल शिनाख्त नहीं हुई है. शव को पोस्टमार्टम के लिए जिला अस्पताल भेजा जा रहा है. उसकी जेब से दिल्ली से मैनपुरी का टिकट मिला है.
सूचना मिलने पर जीआरपी ने ट्रेन को सोमवार की सुबह शिकोहाबाद रेलवे स्टेशन पर रुकवाकर शव को बाहर निकाला. उसकी तत्काल शिनाख्त नहीं हुई है. शव को पोस्टमार्टम के लिए जिला अस्पताल भेजा जा रहा है. उसकी जेब से दिल्ली से मैनपुरी का टिकट मिला है.
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फ़िल्म 'बाहुबली: द कन्क्लूजन' को लेकर दर्शकों में खासा उत्साह देखने को मिल रहा हैं. हर कोई बस एक ही सवाल का जवाब जानना चाहता है कि आखिर 'कटप्पा ने बाहुबली को क्यों मारा ?'
फिल्म के ट्रेलर से भी दर्शकों के इस सवाल का जवाब हासिल नहीं हुआ. बाहुबली फिल्म में बाहुबली का किरदार निभाने वाले साउथ सुपर स्टार प्रभास की लोकप्रियता अब देश-विदेश तक फैल गई है. अब उनके फैन्स उन्हें बाहुबली के रूप में ही जानते हैं. वैसे 'बाहुबली 2' में प्रभास को बॉडी बनाने में मदद की है उनके ट्रेनर लक्ष्मण ने जो खुद मि. वर्ल्ड रह चुके हैं.
24 घंटे से कम वक्त में बाहुबली 2 के ट्रेलर को मिले 2 करोड़ 30 लाख व्यूज
आपको बता दें कि 'बाहुबली : द कन्क्लूजन' फिल्म में प्रभास दोहरी भूमिका में नजर आएंगे, एक तो शिवुडू, जो बाहुबली का बेटा है और दूसरा खुद बाहुबली के रुप में. शिवडू जिसका वजन 86 से 88 किलोग्राम है, वहीं दूसरी तरफ जब वो बाहुबली के भारी भरकम किरदार की भूमिका निभाएंगे तो उसमें उनका वजन 105 किलोग्राम हैं. जाहिर तौर पर इस फिल्म के लिए प्रभास को दो बार बॉडी ट्रांसफॉर्मेशन से गुजरना पड़ा. इसमें उनका साथ दिया मि. वर्ल्ड रह चुके लक्ष्मण रेड्डी ने.
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मिस्टर वर्ल्ड 2010 जीतने वाले लक्ष्मण रेड्डी का कहना हैं कि "बाहुबली के रूप में, जहां प्रभास को ज्यादा मसल्स बनाने की जरूरत पड़ी, वहीं उनके बेटे के रोल शिवुडू के लिए, उन्हें दुबला दिखना पड़ता था. चार साल में इस तरह का बॉडी ट्रांसफॉर्मेशन प्रभास के लिए काफी मुश्किल रहा है. प्रभास के बॉडी फैट के मुताबिक, उनके वजन को 100 किलोग्राम के आस पास रहना चाहिए था, लेकिन शिवुडू के लिए उनको वजन कम करने के साथ ही अपनी बॉडी को टोन्ड भी रखना पड़ता था.
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ये रखा था प्लान
प्रभास के ट्रेनर लक्ष्मण के अनुसार - पूरे दिन की शूटिंग के बाद प्रभास को आधे घंटे का कार्डियो करना होता था. उन्होंने प्रभास के लिए एक सख्त डाइट का प्लान तैयार किया था, उन सभी चीजों को बंद कर दिया गया जिससे कार्बोहाइड्रेट मिलता था और शिवुडू की भूमिका के लिए प्रभास को प्रोटीन वाली डाइट दी गई. प्रभास के खाने में अंडे, चिकन, नट्स, बादाम, मछली और हरी सब्जियां शामिल थी. वहीं दूसरी तरफ बाहुबली के किरदार के लिए, उनको खाने में पनीर और मटन के साथ भारी मात्रा में कार्बोहाइड्रेट दिया जाता था.
प्रभास मिस्टर वर्ल्ड रह चुके लक्ष्मण रेड्डी की पूरी ट्रेनिंग का बखूबी पालन करते थे और अपनी एक्सरसाइज को भी पूरे ध्यान से किया करते थे. प्रभास ने अपनी फिल्म 'बाहुबली : द कन्क्लूजन' के लिए बहुत मेहनत की हैं और उनकी यह मेहनत फिल्म में भी दिखाई दे रही हैं.
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दिए गए शीर्षक के अनुरूप एक पाठ यह हो सकता है: जामिया मिलिया इस्लामिया ने अपने कर्मचारियों के बच्चों के लिए पांच फीसदी सीटें आरक्षित करने का फैसला किया है, जबकि दिल्ली उच्च न्यायालय ने 1997 में ही ऐसी व्यवस्था को खत्म कर दिया था।टिप्पणियां
विश्वविद्यालय के कुछ शिक्षकों ने राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी के समक्ष यह मुद्दा उठाया है। राष्ट्रपति के समक्ष दिए आवेदन में जामिया के जनसंचार केंद्र के प्रोफेसर ओबैद सिद्दीकी ने कहा, ‘‘उच्च न्यायालय ने 1997 में जामिया मिलिया इस्लामिया के स्थायी कर्मचारियों के बेटे-बेटियों-पत्नियों को दिए पांच फीसदी आरक्षण को रद्द कर दिया था।’’ आवेदन में कहा गया है, ‘‘करीब एक दशक तक इस तरह का आरक्षण जारी नहीं रहा, लेकिन विश्वविद्यालय ने एक बार फिर इस प्रक्रिया को शुरू कर दिया है।’’ हाल ही में विश्वविद्यालय की कार्यकारी परिषद की ओर से यह फैसला किया गया कि कर्मचारियों के बच्चों के लिए सभी कार्यक्रमों में उपलब्ध सीटों के ऊपर की पांच फीसदी सीटें आरक्षित रहेंगी।
शिक्षकों के इस आवेदन में कहा गया, ‘‘यह जामिया मिलिया इस्लामिया अधिनियम का उल्लंघन है। दाखिले और आरक्षण से जुड़े अध्यादेशों को नहीं बदला गया है। विश्वविद्यालय ने जानबूझकर और दुर्भावना के साथ ऐसे आरक्षणों को जायज ठहराने के लिए पिछले दरवाजे की प्रक्रियाओं का अनुसरण किया था।’’ उधर, जामिया के प्रवक्ता मुकेश रंजन ने कहा, ‘‘ये मौजूदा सीटों से उपर की सीटें हैं और मौजूदा सीटों में से नहीं हैं। इसमें भी उसी तरह की योग्यता की शर्तें होंगी जो सामान्य श्रेणियों के लिए होती हैं।’’
विश्वविद्यालय के कुछ शिक्षकों ने राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी के समक्ष यह मुद्दा उठाया है। राष्ट्रपति के समक्ष दिए आवेदन में जामिया के जनसंचार केंद्र के प्रोफेसर ओबैद सिद्दीकी ने कहा, ‘‘उच्च न्यायालय ने 1997 में जामिया मिलिया इस्लामिया के स्थायी कर्मचारियों के बेटे-बेटियों-पत्नियों को दिए पांच फीसदी आरक्षण को रद्द कर दिया था।’’ आवेदन में कहा गया है, ‘‘करीब एक दशक तक इस तरह का आरक्षण जारी नहीं रहा, लेकिन विश्वविद्यालय ने एक बार फिर इस प्रक्रिया को शुरू कर दिया है।’’ हाल ही में विश्वविद्यालय की कार्यकारी परिषद की ओर से यह फैसला किया गया कि कर्मचारियों के बच्चों के लिए सभी कार्यक्रमों में उपलब्ध सीटों के ऊपर की पांच फीसदी सीटें आरक्षित रहेंगी।
शिक्षकों के इस आवेदन में कहा गया, ‘‘यह जामिया मिलिया इस्लामिया अधिनियम का उल्लंघन है। दाखिले और आरक्षण से जुड़े अध्यादेशों को नहीं बदला गया है। विश्वविद्यालय ने जानबूझकर और दुर्भावना के साथ ऐसे आरक्षणों को जायज ठहराने के लिए पिछले दरवाजे की प्रक्रियाओं का अनुसरण किया था।’’ उधर, जामिया के प्रवक्ता मुकेश रंजन ने कहा, ‘‘ये मौजूदा सीटों से उपर की सीटें हैं और मौजूदा सीटों में से नहीं हैं। इसमें भी उसी तरह की योग्यता की शर्तें होंगी जो सामान्य श्रेणियों के लिए होती हैं।’’
शिक्षकों के इस आवेदन में कहा गया, ‘‘यह जामिया मिलिया इस्लामिया अधिनियम का उल्लंघन है। दाखिले और आरक्षण से जुड़े अध्यादेशों को नहीं बदला गया है। विश्वविद्यालय ने जानबूझकर और दुर्भावना के साथ ऐसे आरक्षणों को जायज ठहराने के लिए पिछले दरवाजे की प्रक्रियाओं का अनुसरण किया था।’’ उधर, जामिया के प्रवक्ता मुकेश रंजन ने कहा, ‘‘ये मौजूदा सीटों से उपर की सीटें हैं और मौजूदा सीटों में से नहीं हैं। इसमें भी उसी तरह की योग्यता की शर्तें होंगी जो सामान्य श्रेणियों के लिए होती हैं।’’
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बुलंदशहर के कसेरकलां गांव निवासी सेवानिवृत्त पोस्टमास्टर कादरी ने अपनी बीवी की याद में ‘ताजमहल’ का ढांचा बनवाया है, जिसके निर्माण में वह सेवानिवृत्ति के बाद मिली पूरी धनराशि के साथ-साथ जमीन बेचने से मिली रकम भी लगा चुके हैं.
कुल मिलाकर मुहब्बत के इस मुजस्सिमे पर अब तक लगभग 17 लाख रुपये खर्च हो चुके हैं, लेकिन उसे अंतिम रूप दिया जाना अभी बाकी है. कादरी के पास अब यह काम करा पाने के लिये रकम भी नहीं है. कादरी ने अपने गांव में बालिकाओं के लिये हाईस्कूल स्तर के एक विद्यालय की स्थापना का अनुरोध भी किया था.
कुल मिलाकर मुहब्बत के इस मुजस्सिमे पर अब तक लगभग 17 लाख रुपये खर्च हो चुके हैं, लेकिन उसे अंतिम रूप दिया जाना अभी बाकी है. कादरी के पास अब यह काम करा पाने के लिये रकम भी नहीं है. कादरी ने अपने गांव में बालिकाओं के लिये हाईस्कूल स्तर के एक विद्यालय की स्थापना का अनुरोध भी किया था.
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चुवाशी (चुवाशी: Чӑвашла, चवाश्ला; अंग्रेज़ी: Chuvash) यूरोपीय रूस में बोली जाने वाली एक तुर्की भाषा है। यह चुवाश गणतंत्र और उसके पड़ोसी क्षेत्रों में बोली जाती है और तुर्की भाषा-परिवार की ओग़ुर शाखा की इकलौती जीवित भाषा है (शेष विलुप्त हो चुकी हैं)। चुवाशी तुर्की परिवार में निराली है क्योंकि अपनी एक अलग शाखा में होने के कारण इसमें और अन्य जीवित तुर्की भाषाओँ में बहुत अन्तर है और उनको बोलने वाले चुवाशी नहीं समझ सकते। चुवाशी सिरिलिक लिपि में लिखी जाती है। इसे सन् २००२ की जनगणना में १६.४ लाख लोगों ने अपनी मातृभाषा बताया था।
इन्हें भी देखें
ओग़ुर भाषाएँ
तुर्की भाषाएँ
सन्दर्भ
तुर्की भाषाएँ
रूस की भाषाएँ
विश्व की प्रमुख भाषाएं
अभिश्लेषणी भाषाएँ
स्वर सहयोगी भाषाएँ
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कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी मैंगलोर में एक सभा को संबोधित किया है. सोनिया ने भ्रष्टाचार के मुद्दे पर बीजेपी पर निशाना साधा है.
राज्य में नहीं हुआ पैसे का सही इस्तेमाल
सोनिया का कहना है बीजेपी पूरी तरह भृष्टाचार में डूबी हुई है. सोनिया ने राज्य सरकार पर भ्रष्टाचार का भी आरोप लगाया. सोनिया ने कहा कि राज्य में केंद्र के भेजे गए गए पैसे का सही इस्तेमाल नहीं हुआ.
FDI पर पर बीजेपी का विरोध नाटक
सोनिया ने FDI के फैसले पर बीजेपी के विरोध को नाटक करार दिया है. सोनिया ने कहा कि भ्रष्टाचार एक बीमारी है, जिसे किसी ने दूर नहीं किया. सोनिया ने कहा बीजेपी की वजह से लोकपाल बिल लटका है. साथ ही सोनिया ने कहा कि कर्नाटक में कांग्रेस चुनाव के लिए तैयार है.
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मौतिनी (अरबी: موطني), जिसका हिंदी अर्थ 'मेरी गृहभूमि' है, इराक का राष्ट्रगान है। यह कविता फ़िलिस्तीनी कवि इब्राहिम तुकान द्वारा लिखी गई थी जिसे मुहम्मद फ़्लेफ़िल ने संघटित किया था। सारे अरब जगत में प्रसिद्ध इस गीत में, फ़िलिस्तीनी संघर्ष को सराहा गया है और इस प्रकार यह पूरे अरब जगत की एकता को अभिव्यक्त करता है। इसे २००४ में सद्दाम हुसैन के तख्ता पलट के बाद इराक में राष्ट्रगान के रूप में अपनाया गया।
मौतिनि के बोल
एशिया के राष्ट्रगान
इराक़
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फरीदाबाद का बल्लबगढ़ इलाका मंगलवार को उस समय बदमाशों की गोलियों से गूंज उठा, जब बदमाश एक व्यक्ति को मारने के लिए उसका पीछा कर रहे थे. इसी दौरान जान बचाने के लिए वह व्यक्ति एक घर में घुस गया जहां बदमाशों की गोली लगने से घर की महिला घायल हो गई. आनन-फानन में परिजनों ने पुलिस को सूचना दी और महिला को अस्पताल में भर्ती करवाया.
इस मामले में जांच अधिकारी ने बताया कि चंदावली का रहने वाला सुरेंद्र ढाबा संचालक है और पिछले लंबे समय से उसकी दुश्मनी अपने चाचा के लड़के नितिन से चली आ रही थी, जिसको लेकर लड़ाई झगड़े के कई मामले पहले से ही दर्ज हैं. आज नितिन हथियार लेकर अपने साथियों के साथ सुरेंद्र पर हमला करने आया लेकिन वह भाग निकला और एक घर में जाकर घुस गया. पीछे से फायर करते हुए बदमाश भी घर में घुस गए और गोली चला दी, लेकिन यह गोली सुरेंद्र को न लगकर घर की एक महिला के पांव में लग गई. इसके बाद बदमाश वहां से फरार हो गया.
आनन-फानन में पुलिस को सूचना दी गई और महिला को अस्पताल में दाखिल करवाया गया. घटनास्थल से पुलिस ने गोलियों के दो खोल भी बरामद किए हैं और आगे की कार्रवाई में जुट गई है.
नजफगढ़ में गैंगवार की आहट
वहीं, नजफगढ़ का मित्राउ गांव भी इसी तरह गोलियों की तड़तड़ाहट से गूंज उठा, पूरे गावं में हड़कंप मच गया. सोमवार देर रात दर्जनों राउंड गोलियां चली. तीन लोगों को गोलियां मारी गई, जबकि एक को पत्थर मारकर हत्या करने की कोशिश की गई. देर रात हुई इस फायरिंग में कुल पांच लोग घायल हुए हैं. घायलों में सुदर्शन, समर सिंह, नवीन, अमरजीत और सतीश शामिल हैं.
जानकारों का कहना है कि ये गैंगवार की आहट भी हो सकती है. गैंगवार के चलते दर्जनों हत्याएं हो चुकी हैं. पुलिस मामले की जांच में जुटी है कि वजह क्या थी और कौन-कौन इस गोलीकांड में शामिल थे. अभी गांव में सन्नाटा पसरा हुआ है. घायलों को पास के हॉस्पिटल में भर्ती कराया गया है, जहां एक की हालत नाजुक बनी हुई है.
दिल्ली में बैंक लूटने के लिए फायरिंग
वहीं, दिल्ली के कृष्णा नगर में कोटक महेंद्रा बैंक में लूट की कोशिश का मामला सामने आया है. दो हथियारबंद बदमाशों ने लूट की कोशिश थी. इस दौरान बैंक के बाहर तैनात गार्ड ने बदमाशों से मुकाबला किया. बदमाशों ने फायरिंग की, जिसके बाद गार्ड ने भी जवाबी फायरिंग की. बदमाश मौके से फरार हो गए. किसी को गोली नहीं लगी.
दिल्ली में दो हादसों में एक की मौत, दो घायल
इसके अलावा दिल्ली के केशवपुरम इलाके में दो अलग-अलग हादसों में एक की मौत और दो मासूम बच्चे घायल हो गए. दोनों ही हादसे दिल्ली के कन्हैया नगर मेट्रो स्टेशन के पास प्रेरणा चौक पर हुए. मंगलवार सुबह हुए हादसे में एक स्कूटी सवार बस के नीचे आ गया, जहां उसकी मौके पर ही मौत हो गई. वहीं, दूसरे मामले में एक ब्रेजा कार ने एक बाइक सवार को टक्कर मार दी, जिससे बाइक पर बैठे दो बच्चे घायल हो गए.
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यह एक लेख है: दिल्ली के मंत्री कपिल मिश्रा द्वारा जम्मू एवं कश्मीर की मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती पर किए गए हालिया हमले के संदर्भ में भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के नेता राम माधव ने कहा कि किसी के भीतर मौजूद देशभक्ति की परीक्षा रोज़-रोज़ नहीं ली जा सकती.
आम आदमी पार्टी के कपिल मिश्रा ने राजधानी दिल्ली में हाल ही में आयोजित एक समारोह के दौरान महबूबा मुफ्ती से सवाल किया, "क्या आप मानती हैं कि बुरहान वानी आतंकवादी था..." गौरतलब है कि जुलाई में सुरक्षाबलों से मुठभेड़ के दौरान हिज़्ब-उल-मुजाहिदीन के कमांडर बुरहान की मौत हुई थी, और तभी से कश्मीर घाटी में तनाव का माहौल बना रहा है.
जम्मू एव कश्मीर में पीपल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) के साथ बीजेपी के सत्तारूढ़ गठबंधन के प्रबंधन की ज़िम्मेदारी संभाल रहे राम माधव ने कहा, "आप हर रोज़ किसी की देशभक्ति की परीक्षा नहीं ले सकते... आप रोज़ उनसे देशभक्ति सिद्ध करने के लिए नहीं कह सकते... वे ज़िम्मेदार लोग हैं, और ज़िम्मेदार पदों पर बैठे हैं..."
उन्होंने कहा कि महबूबा मुफ्ती को लगातार इस तरह के सवालों का सामना करना पड़ता है, और "उन्होंने हमेशा ऐसे हालात का सामना काफी परिपक्वता के साथ' किया है. वह इस तरह के मुद्दों को लेकर बिल्कुल स्पष्ट हैं... उनके दिमाग में इसे लेकर कोई दो राय नहीं हैं..."
राम माधव के मुताबिक, महबूबा मुफ्ती को मुख्यमंत्री के रूप में न केवल कश्मीर में कानून एवं व्यवस्था की स्थिति को बनाए रखना था, बल्कि 'छह लाख लोगों की भावनाओं का भी ध्यान रखना था...'
जुलाई में बुरहान वानी के मारे जाने के बाद से पूरे कश्मीर में हिंसक प्रदर्शन हो रहे हैं. इस दौरान प्रदर्शनकारियों तथा सुरक्षाबलों के बीच हुए संघर्षों में कुल मिलाकर 90 से ज़्यादा लोग मारे गए, और 10,000 से ज़्यादा घायल हुए.
महबूबा मुफ्ती की यह कहने के लिए आलोचना होती रही है कि यदि सुरक्षाबल बुरहान वानी को पहचान लेते, तो उसे 'एक मौका दिया गया होता...'टिप्पणियां
दिल्ली में आयोजित कार्यक्रम में कपिल मिश्रा ने यह कहते हुए महबूबा मुफ्ती के साथ मंच साझा करने से इंकार कर दिया था कि "हम पाकिस्तान से लड़ सकते हैं, लेकिन हम उन लोगों से कैसे लड़ सकते हैं, जो जम्मू एवं कश्मीर में आतंकवादियों को शरण देते हैं..."
जम्मू एवं कश्मीर में नेशनल कॉन्फ्रेंस के नेता तथा पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला समेत कई विपक्षी दलों की ओर से कश्मीर में फैले तनाव से ढंग से निपटने में नाकामी का आरोप झेल रहीं महबूबा मुफ्ती को राम माधव की ओर से 'अच्छे काम' का सर्टिफिकेट मिल गया, जब उन्होंने कहा, "वह अच्छा काम कर रही हैं..."
आम आदमी पार्टी के कपिल मिश्रा ने राजधानी दिल्ली में हाल ही में आयोजित एक समारोह के दौरान महबूबा मुफ्ती से सवाल किया, "क्या आप मानती हैं कि बुरहान वानी आतंकवादी था..." गौरतलब है कि जुलाई में सुरक्षाबलों से मुठभेड़ के दौरान हिज़्ब-उल-मुजाहिदीन के कमांडर बुरहान की मौत हुई थी, और तभी से कश्मीर घाटी में तनाव का माहौल बना रहा है.
जम्मू एव कश्मीर में पीपल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) के साथ बीजेपी के सत्तारूढ़ गठबंधन के प्रबंधन की ज़िम्मेदारी संभाल रहे राम माधव ने कहा, "आप हर रोज़ किसी की देशभक्ति की परीक्षा नहीं ले सकते... आप रोज़ उनसे देशभक्ति सिद्ध करने के लिए नहीं कह सकते... वे ज़िम्मेदार लोग हैं, और ज़िम्मेदार पदों पर बैठे हैं..."
उन्होंने कहा कि महबूबा मुफ्ती को लगातार इस तरह के सवालों का सामना करना पड़ता है, और "उन्होंने हमेशा ऐसे हालात का सामना काफी परिपक्वता के साथ' किया है. वह इस तरह के मुद्दों को लेकर बिल्कुल स्पष्ट हैं... उनके दिमाग में इसे लेकर कोई दो राय नहीं हैं..."
राम माधव के मुताबिक, महबूबा मुफ्ती को मुख्यमंत्री के रूप में न केवल कश्मीर में कानून एवं व्यवस्था की स्थिति को बनाए रखना था, बल्कि 'छह लाख लोगों की भावनाओं का भी ध्यान रखना था...'
जुलाई में बुरहान वानी के मारे जाने के बाद से पूरे कश्मीर में हिंसक प्रदर्शन हो रहे हैं. इस दौरान प्रदर्शनकारियों तथा सुरक्षाबलों के बीच हुए संघर्षों में कुल मिलाकर 90 से ज़्यादा लोग मारे गए, और 10,000 से ज़्यादा घायल हुए.
महबूबा मुफ्ती की यह कहने के लिए आलोचना होती रही है कि यदि सुरक्षाबल बुरहान वानी को पहचान लेते, तो उसे 'एक मौका दिया गया होता...'टिप्पणियां
दिल्ली में आयोजित कार्यक्रम में कपिल मिश्रा ने यह कहते हुए महबूबा मुफ्ती के साथ मंच साझा करने से इंकार कर दिया था कि "हम पाकिस्तान से लड़ सकते हैं, लेकिन हम उन लोगों से कैसे लड़ सकते हैं, जो जम्मू एवं कश्मीर में आतंकवादियों को शरण देते हैं..."
जम्मू एवं कश्मीर में नेशनल कॉन्फ्रेंस के नेता तथा पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला समेत कई विपक्षी दलों की ओर से कश्मीर में फैले तनाव से ढंग से निपटने में नाकामी का आरोप झेल रहीं महबूबा मुफ्ती को राम माधव की ओर से 'अच्छे काम' का सर्टिफिकेट मिल गया, जब उन्होंने कहा, "वह अच्छा काम कर रही हैं..."
जम्मू एव कश्मीर में पीपल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) के साथ बीजेपी के सत्तारूढ़ गठबंधन के प्रबंधन की ज़िम्मेदारी संभाल रहे राम माधव ने कहा, "आप हर रोज़ किसी की देशभक्ति की परीक्षा नहीं ले सकते... आप रोज़ उनसे देशभक्ति सिद्ध करने के लिए नहीं कह सकते... वे ज़िम्मेदार लोग हैं, और ज़िम्मेदार पदों पर बैठे हैं..."
उन्होंने कहा कि महबूबा मुफ्ती को लगातार इस तरह के सवालों का सामना करना पड़ता है, और "उन्होंने हमेशा ऐसे हालात का सामना काफी परिपक्वता के साथ' किया है. वह इस तरह के मुद्दों को लेकर बिल्कुल स्पष्ट हैं... उनके दिमाग में इसे लेकर कोई दो राय नहीं हैं..."
राम माधव के मुताबिक, महबूबा मुफ्ती को मुख्यमंत्री के रूप में न केवल कश्मीर में कानून एवं व्यवस्था की स्थिति को बनाए रखना था, बल्कि 'छह लाख लोगों की भावनाओं का भी ध्यान रखना था...'
जुलाई में बुरहान वानी के मारे जाने के बाद से पूरे कश्मीर में हिंसक प्रदर्शन हो रहे हैं. इस दौरान प्रदर्शनकारियों तथा सुरक्षाबलों के बीच हुए संघर्षों में कुल मिलाकर 90 से ज़्यादा लोग मारे गए, और 10,000 से ज़्यादा घायल हुए.
महबूबा मुफ्ती की यह कहने के लिए आलोचना होती रही है कि यदि सुरक्षाबल बुरहान वानी को पहचान लेते, तो उसे 'एक मौका दिया गया होता...'टिप्पणियां
दिल्ली में आयोजित कार्यक्रम में कपिल मिश्रा ने यह कहते हुए महबूबा मुफ्ती के साथ मंच साझा करने से इंकार कर दिया था कि "हम पाकिस्तान से लड़ सकते हैं, लेकिन हम उन लोगों से कैसे लड़ सकते हैं, जो जम्मू एवं कश्मीर में आतंकवादियों को शरण देते हैं..."
जम्मू एवं कश्मीर में नेशनल कॉन्फ्रेंस के नेता तथा पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला समेत कई विपक्षी दलों की ओर से कश्मीर में फैले तनाव से ढंग से निपटने में नाकामी का आरोप झेल रहीं महबूबा मुफ्ती को राम माधव की ओर से 'अच्छे काम' का सर्टिफिकेट मिल गया, जब उन्होंने कहा, "वह अच्छा काम कर रही हैं..."
उन्होंने कहा कि महबूबा मुफ्ती को लगातार इस तरह के सवालों का सामना करना पड़ता है, और "उन्होंने हमेशा ऐसे हालात का सामना काफी परिपक्वता के साथ' किया है. वह इस तरह के मुद्दों को लेकर बिल्कुल स्पष्ट हैं... उनके दिमाग में इसे लेकर कोई दो राय नहीं हैं..."
राम माधव के मुताबिक, महबूबा मुफ्ती को मुख्यमंत्री के रूप में न केवल कश्मीर में कानून एवं व्यवस्था की स्थिति को बनाए रखना था, बल्कि 'छह लाख लोगों की भावनाओं का भी ध्यान रखना था...'
जुलाई में बुरहान वानी के मारे जाने के बाद से पूरे कश्मीर में हिंसक प्रदर्शन हो रहे हैं. इस दौरान प्रदर्शनकारियों तथा सुरक्षाबलों के बीच हुए संघर्षों में कुल मिलाकर 90 से ज़्यादा लोग मारे गए, और 10,000 से ज़्यादा घायल हुए.
महबूबा मुफ्ती की यह कहने के लिए आलोचना होती रही है कि यदि सुरक्षाबल बुरहान वानी को पहचान लेते, तो उसे 'एक मौका दिया गया होता...'टिप्पणियां
दिल्ली में आयोजित कार्यक्रम में कपिल मिश्रा ने यह कहते हुए महबूबा मुफ्ती के साथ मंच साझा करने से इंकार कर दिया था कि "हम पाकिस्तान से लड़ सकते हैं, लेकिन हम उन लोगों से कैसे लड़ सकते हैं, जो जम्मू एवं कश्मीर में आतंकवादियों को शरण देते हैं..."
जम्मू एवं कश्मीर में नेशनल कॉन्फ्रेंस के नेता तथा पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला समेत कई विपक्षी दलों की ओर से कश्मीर में फैले तनाव से ढंग से निपटने में नाकामी का आरोप झेल रहीं महबूबा मुफ्ती को राम माधव की ओर से 'अच्छे काम' का सर्टिफिकेट मिल गया, जब उन्होंने कहा, "वह अच्छा काम कर रही हैं..."
राम माधव के मुताबिक, महबूबा मुफ्ती को मुख्यमंत्री के रूप में न केवल कश्मीर में कानून एवं व्यवस्था की स्थिति को बनाए रखना था, बल्कि 'छह लाख लोगों की भावनाओं का भी ध्यान रखना था...'
जुलाई में बुरहान वानी के मारे जाने के बाद से पूरे कश्मीर में हिंसक प्रदर्शन हो रहे हैं. इस दौरान प्रदर्शनकारियों तथा सुरक्षाबलों के बीच हुए संघर्षों में कुल मिलाकर 90 से ज़्यादा लोग मारे गए, और 10,000 से ज़्यादा घायल हुए.
महबूबा मुफ्ती की यह कहने के लिए आलोचना होती रही है कि यदि सुरक्षाबल बुरहान वानी को पहचान लेते, तो उसे 'एक मौका दिया गया होता...'टिप्पणियां
दिल्ली में आयोजित कार्यक्रम में कपिल मिश्रा ने यह कहते हुए महबूबा मुफ्ती के साथ मंच साझा करने से इंकार कर दिया था कि "हम पाकिस्तान से लड़ सकते हैं, लेकिन हम उन लोगों से कैसे लड़ सकते हैं, जो जम्मू एवं कश्मीर में आतंकवादियों को शरण देते हैं..."
जम्मू एवं कश्मीर में नेशनल कॉन्फ्रेंस के नेता तथा पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला समेत कई विपक्षी दलों की ओर से कश्मीर में फैले तनाव से ढंग से निपटने में नाकामी का आरोप झेल रहीं महबूबा मुफ्ती को राम माधव की ओर से 'अच्छे काम' का सर्टिफिकेट मिल गया, जब उन्होंने कहा, "वह अच्छा काम कर रही हैं..."
जुलाई में बुरहान वानी के मारे जाने के बाद से पूरे कश्मीर में हिंसक प्रदर्शन हो रहे हैं. इस दौरान प्रदर्शनकारियों तथा सुरक्षाबलों के बीच हुए संघर्षों में कुल मिलाकर 90 से ज़्यादा लोग मारे गए, और 10,000 से ज़्यादा घायल हुए.
महबूबा मुफ्ती की यह कहने के लिए आलोचना होती रही है कि यदि सुरक्षाबल बुरहान वानी को पहचान लेते, तो उसे 'एक मौका दिया गया होता...'टिप्पणियां
दिल्ली में आयोजित कार्यक्रम में कपिल मिश्रा ने यह कहते हुए महबूबा मुफ्ती के साथ मंच साझा करने से इंकार कर दिया था कि "हम पाकिस्तान से लड़ सकते हैं, लेकिन हम उन लोगों से कैसे लड़ सकते हैं, जो जम्मू एवं कश्मीर में आतंकवादियों को शरण देते हैं..."
जम्मू एवं कश्मीर में नेशनल कॉन्फ्रेंस के नेता तथा पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला समेत कई विपक्षी दलों की ओर से कश्मीर में फैले तनाव से ढंग से निपटने में नाकामी का आरोप झेल रहीं महबूबा मुफ्ती को राम माधव की ओर से 'अच्छे काम' का सर्टिफिकेट मिल गया, जब उन्होंने कहा, "वह अच्छा काम कर रही हैं..."
महबूबा मुफ्ती की यह कहने के लिए आलोचना होती रही है कि यदि सुरक्षाबल बुरहान वानी को पहचान लेते, तो उसे 'एक मौका दिया गया होता...'टिप्पणियां
दिल्ली में आयोजित कार्यक्रम में कपिल मिश्रा ने यह कहते हुए महबूबा मुफ्ती के साथ मंच साझा करने से इंकार कर दिया था कि "हम पाकिस्तान से लड़ सकते हैं, लेकिन हम उन लोगों से कैसे लड़ सकते हैं, जो जम्मू एवं कश्मीर में आतंकवादियों को शरण देते हैं..."
जम्मू एवं कश्मीर में नेशनल कॉन्फ्रेंस के नेता तथा पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला समेत कई विपक्षी दलों की ओर से कश्मीर में फैले तनाव से ढंग से निपटने में नाकामी का आरोप झेल रहीं महबूबा मुफ्ती को राम माधव की ओर से 'अच्छे काम' का सर्टिफिकेट मिल गया, जब उन्होंने कहा, "वह अच्छा काम कर रही हैं..."
दिल्ली में आयोजित कार्यक्रम में कपिल मिश्रा ने यह कहते हुए महबूबा मुफ्ती के साथ मंच साझा करने से इंकार कर दिया था कि "हम पाकिस्तान से लड़ सकते हैं, लेकिन हम उन लोगों से कैसे लड़ सकते हैं, जो जम्मू एवं कश्मीर में आतंकवादियों को शरण देते हैं..."
जम्मू एवं कश्मीर में नेशनल कॉन्फ्रेंस के नेता तथा पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला समेत कई विपक्षी दलों की ओर से कश्मीर में फैले तनाव से ढंग से निपटने में नाकामी का आरोप झेल रहीं महबूबा मुफ्ती को राम माधव की ओर से 'अच्छे काम' का सर्टिफिकेट मिल गया, जब उन्होंने कहा, "वह अच्छा काम कर रही हैं..."
जम्मू एवं कश्मीर में नेशनल कॉन्फ्रेंस के नेता तथा पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला समेत कई विपक्षी दलों की ओर से कश्मीर में फैले तनाव से ढंग से निपटने में नाकामी का आरोप झेल रहीं महबूबा मुफ्ती को राम माधव की ओर से 'अच्छे काम' का सर्टिफिकेट मिल गया, जब उन्होंने कहा, "वह अच्छा काम कर रही हैं..."
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पाकिस्तान के पूर्व सांसद ने ही अपनी सेना पर सवाल खड़े किए हैं, पाकिस्तान मुस्लिम लीग (नवाज़) के पूर्व सांसद सैयद नेहल हाशमी का कहना है कि सेना ने आज तक मुल्क के लिए कुछ नहीं किया है. वहीं पेटीएम के मालिक विजय शेखर शर्मा का पर्सनल डाटा चुराकर 20 करोड़ रुपए उगाही करने का मामला सामने आया है.
PAK के पूर्व MP बोले- एक इंच जमीन भी नहीं ला सकी हमारी सेना, दिखावटी है एटम बम
आतंकियों को ट्रेनिंग देकर भारत के खिलाफ इस्तेमाल करने वाली पाकिस्तानी सेना पर अब उसके घर में ही सवाल खड़े होने लगे हैं. पाकिस्तान के पूर्व सांसद ने ही अपनी सेना पर सवाल खड़े कर दिए हैं. पाकिस्तान मुस्लिम लीग (नवाज़) के पूर्व सांसद सैयद नेहल हाशमी का कहना है कि सेना ने आज तक मुल्क के लिए कुछ नहीं किया है, उनसे ज्यादा नेताओं ने देश के लिए किया है.
पेटीएम के मालिक को ब्लैकमेल कर 20 करोड़ की फिरौती मांगी, महिला सेक्रेटरी गिरफ्तार
पेटीएम के मालिक विजय शेखर शर्मा का पर्सनल डाटा चुराकर 20 करोड़ रुपये उगाही करने का मामला सामने आया है. विजय शर्मा का निजी डाटा कंपनी के ही तीन कर्मचारियों ने चुराया और फिर उन्हें ब्लैकमेल किया. इस बाबत नोएडा के सेक्टर 20 में शिकायत दर्ज कराई गई है. पुलिस ने ब्लैकमेल करने वाले तीनों कर्मचारियों को गिरफ्तार कर लिया है. इनमें एक महिला भी शामिल है, जो विजय की सेक्रेटरी बताई जा रही है.
विदेश में जमा काले धन पर IT की नजर, कई को नोटिस भेजने की तैयारी
आयकर विभाग के द्वारा विदेशों में जमा काले धन के खिलाफ तेजी से कार्रवाई की जा रही है. इसके तहत विभाग ने भारतीयों द्वारा बाहर जमा किए गए पैसों और खरीदी गई प्रॉपर्टी का पता लगाने के लिए कई को नोटिस भेजा है. नोटिस भेजकर सभी से जानकारी साझा करने को कहा गया है, साथ ही ये भी कहा गया है कि अगर कोई गड़बड़ी होती है तो नए एंटी ब्लैकमनी कानून के आधार पर ही कार्रवाई की जाएगी.
गुरुग्राम फायरिंग: पत्नी के बाद जज के बेटे ने भी तोड़ा दम, दान किए अंग
गुरुग्राम में कुछ दिनों पहले हुई फायरिंग में घायल हुए जज के बेटे ने भी दम तोड़ दिया है. ध्रुव ने गुरुग्राम के मेदांता अस्पताल में आज सवेरे अंतिम सांस ली. बीते 10 दिनों से उनका यहां इलाज चल रहा था. फायरिंग में जज की पत्नी पहले ही मर चुकी हैं. जज के सुरक्षाकर्मी महिपाल ने 13 अक्टूबर को गुरुग्राम के भीड़भाड़ वाले इलाके में जज की पत्नी और बेटे पर गोली चलाई थी.
शिवराज सरकार के खिलाफ आज से संतों के समागम में मन की बात करेंगे कंप्यूटर बाबा
मध्य प्रदेश में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और बीजेपी के खिलाफ कंप्यूटर बाबा ने मोर्चा खोल दिया है.वो संतों के समागम में मन की बात के जरिए शिवराज सरकार पर निशाना साधेंगे. कंप्यूटर बाबा मंगलवार को इंदौर में इस अभियान की शुरुआत करेंगे. कंप्यूटर बाबा अपनी मन की बात में नर्मदा में अवैध खनन, गोरक्षा और मंदिर निर्माण के मुद्दे पर चर्चा करेंगे.
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आम आदमी पार्टी के संयोजक अरविंद केजरीवाल ई-रिक्शा के मुद्दे को लेकर बुधवार को दिल्ली के जंतर-मंतर पर रैली करने जा रहे हैं. ई-रिक्शा चलाने वालों को राहत दिलाने के नाम पर बीजेपी और AAP, दोनों ही क्रेडिट लेने की होड़ में शामिल दिख रही है.
दिल्ली के पूर्व सीएम अरविंद केजरीवाल ने पिछले महीने भी केंद्रीय परिवहन मंत्री नितिन गडकरी से मुलाकात की थी. गडकरी पहले ही ई-रिक्शा पर से बैन हटवाने का वादा कर चुके हैं.
ई-रिक्शा के लिए मंजूरी लेने की राशि में छूट की मांग
दरअसल, ई-रिक्शे पर सरकारी नोटिफिकेशन से निराश आम आदमी पार्टी ने सड़कों पर इस गाड़ी को चलाने की मंजूरी लेने के लिए चुकाई जाने वाली राशि में छूट देने की मांग की है. पार्टी ने कहा है कि नई अधिसूचना के तहत कम से कम 8 से 10 तरह के ऐसे पहलू हैं, जिसके लिए वाहन को चलाने से पहले मंजूरी लेने की आवश्यकता होगी. वाहन को चलाने की मंजूरी के लिए लगभग 5 लाख रुपये का खर्च आएगा.
पार्टी ने कहा है कि अधिसूचना में यह भी कहा गया है कि इसे चलाने की मंजूरी लेने की जिम्मेदारी ई-रिक्शा चालकों के संघ पर होगी, लेकिन ई-रिक्शा चालकों का कोई भी संघ नहीं है. पार्टी का कहना है कि सरकार को ऐसे रास्ते की तलाश करनी चाहिए, जिससे ई-रिक्शा के लिए मंजूरी मिलने की प्रक्रिया आसान हो सके.
पार्टी का मानना है कि ई-रिक्शा चालकों के लिए इतनी बड़ी राशि का खर्च वहन करना असंभव है. सरकार को मंजूरी लेने के लिए चुकाई जाने वाली राशि में छूट देनी चाहिए और अधिसूचना में भी संशोधन करना चाहिए.
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भारतीय समयानुसार शुक्रवार सुबह 5 बजे से चिली में शुरू होने वाले 44वें कोपा अमेरिका कप फुटबॉल टूर्नामेंट का उद्घाटन मैच स्थानीय समयानुसार गुरुवार की शाम 8:30 बजे से चिली और इक्वाडोर के बीच खेला जायेगा. चिली के कप्तान और बार्सिलोना के गोलकीपर क्लाउडियो ब्रावो के मुताबिक ये टूर्नामेंट उनके लिए बहुत महत्वपूर्ण है, और घरेलू जमीन पर होने के नाते वो इसमें अच्छा प्रदर्शन करने को लेकर आश्वस्त हैं.
साउथ अमेरिकी देशों का ये भव्य टूर्नामेंट ब्राजील में हुए विश्वकप के 1 साल बाद हो रहा है, और चिली की टीम को विश्वकप के अंतिम 16 से बाहर हो जाने की तकलीफ आज भी है. कोपा अमेरिका के इतिहास में चार बार उपविजेता रह चुकी चिली की टीम और हाल ही में
बार्सिलोना के साथ चैंपियंस लीग
जीतने वाले चिली के कप्तान ब्रावो को अपने पहले कोपा अमेरिका टाइटल का बेसब्री से इंतजार हैं.
दूसरी तरफ अपने चोटिल विंगर एंटोनियो वैलेंसिया के बिना खेल रही इक्वाडोर की टीम खुदको अंडरडॉग मानकर चल रही है. इक्वाडोर के कोच गुस्तावो क्वांटेरोज के मुताबिक,' चिली के लिए फायदे की बात यह है कि वो उसी कोच तथा उसी टीम के साथ खेल रहे हैं जिसके साथ उन्होंने 2014 ब्राजील विश्वकप में खेला था. इसके चलते उन्हें अच्छे से पता है कि कैसे क्या करना है और उनका सामंजस्य ज्यादा बेहतर होगा. लेकिन हम बिना लड़े हार नहीं मानने वाले'
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भैयाथान (Bhaiyathan) भारत के छत्तीसगढ़ राज्य के सूरजपुर ज़िले में स्थित एक गाँव है। यह इसी नाम की तहसील में स्थित है।
विवरण
भैयाथान तहसील एवं विकासखण्ड सूरजपुर जिला से 22 किलोमिटर में स्थित है जो भारत के राज्य छत्तीसगढ में पडता है यह रेड नदी के किनारे पर बसा है इससे 23 किलोमिटर दूर देवी मॉ कुदरगढी पहाडों पर विराजमान है जहा दूर दूर से हर वर्ष लाखो श्रधालू देवी मॉ के दर्शन करने आते है। यहा पहुचने के लिए रेल मार्ग सूरजपुर रोड 9 किलोमिटर एवं पक्की सडक नेशनल हाईवे 78 से 22 किलो दूर है। जनपद पंचायत भैयाथान कुल 61 ग्राम पंचायताें का प्रतिनिधित्व करता है, ग्राम पंचायत भैयाथान विकासशील ग्रामों में एक है जो रिहन्द नदी के किनारे बसा है यहा 1000 मेंगावाट का थर्मल पावर प्लांट बनाने की सरकार द्वारा घोषणा की गई है यह जिला सूरजपुर, छत्तीसगढ से 23 किलोमिटर उत्तर में स्िथत है एक ओर पहाड और नदी यहा की सुन्दरता को चार चान्द लगाता है कुछ ही किलोमीटर की दुरी पर कुदरगढी माता पहाडो पर विराजमान है जहां रामनवमी के समय भारत के कोने कोने से लाखों भक्त दर्शन करने आते है ा यंहा खनिज सम्पदा का भण्डार है कोयला खदान के साथ साथ बाक्साइट का बडा भण्डार है।
विभिन्न मोहल्ला
भैयाथान इंद्रप्रस्थ गढ़ी,झिलमिली इस्टेट(वर्तमान गढ़ी)
भैयाथान पुरानी बस्ती
हर्रापारा
दर्रीपारा
समौली
लखनपुर
अस्पताल कालोनी (न्यू मार्केट)
पासल
रजबहर
केवरा
सिरसी
सांख्यिकी
ग्राम पंचायत - 78
नगर पंचायत - 1
विधानसथा क्षेत्र - भटगांव (05)
लोकसभा क्षेञ क्रमांक 01
भैयाथान में स्कूलों और कॉलेज
सरस्वती शिशु मंदिर
नेहरू बाल मंदिर
पंडित रविशंकर त्रिपाठी विश्विद्यालय
इतिहास
17 वीं सदी में, अग्नीकुल की दो चचेरे भाई चौहान राजा मैनपुरी, Dalthamban साही और Dharamel साही, एक तीर्थ यात्रा से लौट रहे थे जगन्नाथ पुरी . वे उनके साथ एक छोटी सी शक्ति थी। उनकी वापसी की यात्रा पर, वे राज्य के सरगुजा, राजधानी में रुका अंबिकापुर . वे जोडा तालाब (भैया बड़ा) जो अभी भी इस दिन के लिए मौजूद है के पास डेरे डाले. सरगुजा के महाराजा पूंजी से दूर था और कुछ बागी सरदारों राज्य के महल घिरा हुआ है। रानी को पता है कि चौहान भाइयों के पास डेरा डाले हुए थे आया Joda तालाब . वह परंपरागत राखी भेजा है। Dalthamban साही और Dharamel साही उसके बचाव के लिए आया था और दूर bagi सरदारों दिया. अपने बल का एक प्रमुख हिस्सा मुठभेड़ में मारा गया। महाराजा कुछ समय के बाद लौट आए. वह रानी बचाव के लिए चौहान भाइयों को धन्यवाद दिया और उन्हें पेशकश की Jagirdari क्षेत्र के रूप में जाना राज्य के उत्तरी भाग पर Jhilmili एस्टेट . यह बड़े भाई Dalthamban साही द्वारा स्वीकार कर लिया गया। Jhilmili क्षेत्र के एक भाग के नियंत्रण में था Baland राजाओं.
चौहान भाइयों नदी उखड़ना Kaskela गांव के किनारे पर बसे. वे दूर कर दिया है की क्षेत्र से Baland की बलों और जबर्दस्ती Pakharias जो सदा सरगुजा राज्य के खिलाफ विद्रोह कर रहे थे। वे सरगुजा राज्य के लिए एक नाममात्र वार्षिक श्रद्धांजलि का भुगतान किया। भैया का शीर्षक परिवार पर महाराजा अमर सिंह द्वारा प्रदान किया गया। राखी के बांधने के बाद के बाद से, भाई रानी की bhaiyas बन था, (क्षेत्र) ईलाका भैयाथान के रूप में जाना जाता था
इन्हें भी देखें
सूरजपुर ज़िला
सन्दर्भ
सूरजपुर ज़िला
छत्तीसगढ़ के गाँव
सूरजपुर ज़िले के गाँव
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दिए गए शीर्षक के अनुरूप एक पाठ यह हो सकता है: राजनीतिक सुधारों की दिशा में काम करने वाली संस्था एडीआर ने पश्चिम बंगाल में एक सर्वे कर वहां की जनता के मुद्दों और ममता बनर्जी सरकार के कामकाज को परखने की कोशिश की. लोकसभा चुनाव के मद्देनजर जारी यह रिपोर्ट ममता बनर्जी के लिए मुश्किलें खड़ी करने वाली है. क्योंकि एडीआर ने जनता की अपेक्षाओं पर सरकार के प्रदर्शन की पड़ताल की तो यह औसत से भी कम रहा. अक्टूबर 2018 से दिसंबर 2018 के बीच सर्वे कर तैयार इस रिपोर्ट में जनता से जुड़े दस अहम मुद्दों के आधार पर सरकार के काम-काज का परीक्षण किया गया. रिपोर्ट में तीन केटगरी GOOD, AVERAGE और BAD का उपयोग किया गया था, जहां GOOD के लिए पांच अंक, औसत को 3 और BAD के लिए 1 अंक निर्धारित किया गया. एडीआर ने सर्वेक्षण में पश्चिम बंगाल की सभी 42 संसदीय क्षेत्रों से करीब 21 हजार लोगों से बात कर यह रिपोर्ट जारी की है. राज्य में जनाधार बढ़ाने में जुटी बीजेपी अगर इन मुद्दों को भुनाने में सफल रही तो ममता बनर्जी सरकार को लोकसभा चुनाव में तगड़ा झटका लग सकता है.
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देश विदेश के कई फिल्म फेस्टिवल में दर्शकों की सराहना बंटोर चुकी फिल्म अलीगढ़ का ट्रेलर आज रिलीज होने जा रहा है. सेंसर बोर्ड ने इस फिल्म के ट्रेलर को एडल्ट सर्टिफिकेट से नवाजा है.
बेहतरीन एक्टर
मनोज बाजपेयी
और राजकुमार राव स्टारर यस फिल्म को पहले से ही फिल्म की कहानी को लेकर खूब चर्चा में है. गे प्रोफेसर की कहानी पर बेस्ड इस फिल्म में जाहिर सी बात है कई बोल्ड शब्दों को प्रयोग किया गया है यही वजह है कि सेंसर ने इस फिल्म के ट्रेलर तक को 'A' सर्टिफिकेट दिया है. ट्रेलर में 'Gay' और 'Homosexual' शब्दों का प्रयोग हो सकता है. फिल्म के ट्रेलर की अवधि 2 मिनट 46 सेकेंड है जबकि पूरी फिल्म 2 घंटे 20 मिनट लंबी है. इस फिल्म का ट्रेलर आज शाम 4:30 बजे रिलीज होने जा रहा है. इस बारे में खुद फिल्म में गे प्रोफेसर का किरदार अदा कर रहे
मनोज बाजपेयी
ने ट्वीट करके दी है.
The exclusive trailer out today at 4.30.
#ComeOut
#AligarhTrailer
https://t.co/Y4BUTOaTet
— Manoj Bajpayee (@BajpayeeManoj)
January 28, 2016
फिल्म 'अलीगढ़'
असल घटनाओं पर आधारित कहानी है जिसमें जिसमें
मनोज बाजपेयी
एक गे प्रोफेसर और एक्टर
राजकुमार राव
एक रिपोर्टर के किरदार में नजर आएंगे. हंसल मेहता के निर्देशन में बनी यह फिल्म 26 फरवरी को रिलीज होगी.
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बुधवार को ग्रुप बी मुकाबले में क्रिस्टियानो रोनाल्डो की बदौलत पुर्तगाल ने फीफा विश्व कप-2018 में अपनी जीत का खाता खोला. रोनाल्डो ने मोरक्को के खिलाफ हेडर के जरिये दमदार गोल दागा. स्पेन के खिलाफ पहले मैच में हैट्रिक जमाने वाले रोनाल्डो का मौजूदा विश्व कप में यह चौथा गोल है. इस मैच में रोनाल्डो ने न सिर्फ फैंस का दिल जीता, बल्कि कई बड़ी उपलब्धियां भी हासिल कर लीं.
FIFA वर्ल्ड कप: रोनाल्डो ने फिर दिखाया जलवा, पुर्तगाल की मोरक्को पर संघर्षपूर्ण जीत
रोनाल्डो 4 वर्ल्ड कप- 7 गोल
वर्ल्ड कप में रोनाल्डो के कुल 7 गोल (15 मैच- 2006, 2010, 2014, 2018 वर्ल्ड कप ) हो गए हैं. जबकि उनके प्रबल प्रतिद्वंद्वी लियोनेल मेसी के 16 मैचों में 5 गोल ही हैं.
मोरक्को के खिलाफ मैच में रोनाल्डो ने 85वां अंतरराष्ट्रीय गोल दागा. उन्होंने पुर्तगाल की ओर से 152 मैचों में इतने गोल अपने नाम किए हैं. इस तरह से वह यूरोप की तरफ से अंतरराष्ट्रीय स्तर पर सर्वाधिक गोल करने वाले खिलाड़ी भी बने.
Just the 85 international goals for
@Cristiano
now... 🙌
#PORMAR
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— FIFA World Cup 🏆 (@FIFAWorldCup)
June 20, 2018
अंतरराष्ट्रीय फुटबॉल में सर्वाधिक गोल करने के मामले में रोनाल्डो (85 गोल) अब दूसरे स्थान पर आ गए हैं. उन्होंने हंगरी और स्पेन की ओर से खेल चुके फ्रैंक पुस्कास (84 गोल) को पीछे छोड़ा. ईरान के अली दाई के नाम सबसे ज्यादा- 109 गोल करने का रिकॉर्ड है.
सर्वाधिक इंटरनेशनल गोल
1. अली दाई (1993-2006, ईरान) : 109 गोल (149 मैच)
2. क्रिस्टियानो रोनाल्डो (2003 से, पुर्तगाल) : 85 गोल (152 मैच)
2. फ्रैंक पुस्कास (1945-1962, हंगरी-स्पेन) : 84 गोल (85+4=89 मैच)
क्रिस्टियानो रोनाल्डो ने अब तक इस वर्ल्ड कप में 4 गोल दागे हैं. इसके साथ ही पुर्तगाल की ओर से एक वर्ल्ड कप में कम से कम चार गोल करने वाले वह दूसरे खिलाड़ी बन गए हैं. इससे पहले इंग्लैंड में खेले गए 1966 के वर्ल्ड कप में युसेबियो ने 9 गोल करने में कामयाब रहे थे.
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सीटीईटी आंसर-की 2018 (CTET Answer Key 2018) पर आपत्ति दर्ज कराने की आज आखिरी तारीख है. अगर आपको किसी सवाल पर आपत्ति दर्ज करानी है, तो आपको 1 हजार रुपये प्रति सवाल शुल्क देना होगा. अगर CBSE द्वारा इसे स्वीकार किया गया और विषय के विशेषज्ञों द्वारा गलती पाई गई तो उम्मीदवार द्वारा भुगतान किया गया 1000 रुपये का शुल्क रिफंड कर दिया जाएगा. साथ ही जिस सवाल पर आपत्ति दर्ज कराई गई थी, उस पर डिसीजन वेबसाइट पर जारी कर दिया जाएगा. बता दें कि सीटेट आंसर-की (CTET 2018 Answer Key) दो दिन पहले जारी की गई थी. सीटीईटी परीक्षा 9 दिसंबर को देश के 92 शहरों के 2,144 केंद्रों पर हुई थी. सीटेट परीक्षा (CTET 2018 Exam) में करीब 16,91,088 लाख उम्मीदवारों ने भाग लिया था. जिसमें 12 लाख से ज्यादा पुरुष, 9 लाख से ज्याद महिलाएं, 199 ट्रांसजेंडर और 33,107 दिव्यांग उम्मीदवार शामिल थे. इस बार 2 साल बाद सीटीईटी (CTET Exam) परीक्षा आयोजित की गई थी. आपको बता दें कि CTET परीक्षा का मुख्य उद्देश्य शिक्षक योग्यता को परखना होता है.
जिन उम्मीदवारों ने अभी तक CTET Answer Key डाउनलोड नहीं की है, वे नीचे दिए गए लिंक पर क्लिक कर आंसर-की डाउनलोड कर सकते हैं. CTET Answer Key 2018
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हाल ही में हॉलीवुड एक्टर विल स्मिथ भारत में अपने लेटेस्ट शो के सिलसिले में भारत पहुंचे थे. वे भारत आकर कुछ खास चीज़ें करना चाहते थे जिसमें से एक रणवीर सिंह से मुलाकात करना और उनसे बॉलीवुड गानों के बारे में सीखना भी था.रणवीर ने भी विल स्मिथ से बेहद गर्मजोशी से मुलाकात की और दोनों ने साथ में अच्छा समय बिताया. इस दौरान रणवीर विल को बॉलीवुड के कुछ गुर सिखाते हुए भी नजर आए.
रणवीर सिंह ने साल 2013 में आई फिल्म गोलियों की रासलीला: रामलीला से अपने आपको स्थापित करने में कामयाबी पाई थी. इस फिल्म में एक सॉन्ग था जिसके चलते रणवीर सिंह युवा दिलों की धड़कन बन गए थे. रणवीर ने हॉलीवुड एक्टर विल स्मिथ को इस गाने के 'दर्शन' कराए और विल स्मिथ भी ततड़ ततड़ नाम के इस गाने को एन्जॉय करते नज़र आए.
हिंदी फिल्मों के गानों के बारे में बात करते हुए रणवीर ने कहा कि बॉलीवुड की ज्यादातर फिल्मों में जब सॉन्ग्स को शूट किया जाता है तो ये अक्सर सेट पर त्योहार जैसा माहौल देखने को मिलता है. रणवीर ने विल को इस गाने के दौरान हीरो की एंट्री के बारे में भी विशेष ज्ञान दिया. गाने में रणवीर की एंट्री पर हंसते हुए विल ने कहा कि सभी को अपनी जिंदगी में इस तरह की चीज़ें करनी चाहिए. रणवीर की परफॉर्मेंस देखने के बाद विल ने कहा कि ये मजेदार था और मैं वाकई इस तरह की परफॉर्मेंस करना चाहूंगा.
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बॉलीवुड के बारे में बात करते हुए रणवीर ने विल स्मिथ को बताया कि कोई भी पारंपरिक हिंदी फिल्म जब अच्छी होती है तो लोग उस फिल्म को पैसा वसूल कहते हैं. उन्होंने आगे कहा, एक बॉलीवुड फिल्म थाली की तरह होती है जिसमें ड्रामा, रोमांस, एक्शन, कॉमेडी और नाच-गाने का तड़का लगा होता है. रणवीर से मिलने के बाद विल स्मिथ की भारत यात्रा भी कहीं ना कहीं पैसा वसूल हो गई होगी.
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दिए गए शीर्षक के अनुरूप एक पाठ यह हो सकता है: इसकी शुरुआत बुधवार को तब हुई जब सोशल साइट टम्बलर की एक यूजर स्वाइकेड ने इस ड्रेस की तस्वीर को पोस्ट करने के बाद सवाल पूछा, 'मेरी मदद करें, क्या इस ड्रेस का रंग सफेद और गोल्डन है या फिर ब्लू और ब्लैक। मैं और मेरे दोस्त आपस में सहमत नहीं हो पा रहे हैं?'
दरअसल स्वाइकेड यूज़र, 21 साल की केटेलिन मैकनील एक सिंगर हैं। और इस ड्रेस के रंग के मुद्दे पर उनकी एक दोस्त और उसके मंगेतर में बहस खत्म होने का नाम नहीं ले रही थी। वे दोनों इस ड्रेस की फोटो को देखकर आपस में बहस कर रहे थे। बहस खत्म होती नहीं देख कर मैकनील न ये सवाल सोशल साइट पर डाल दिया।
इसके बाद 77.13 डॉलर की इस ड्रेस की तस्वीर तेजी से वायरल होने लगी। किसी ने कहा ये सफेद और गोल्डन है, तो किसी का कहना था कि इसका रंग ब्लू और ब्लैक है। इसके बाद इस पर नजर पड़ी बज़फीड की और इस वेबसाइट ने गुरुवार को शाम 6.15 बजे इस, 'किस रंग की है ये ड्रेस?' शीर्षक से कहानी पब्लिश की। इसके बाद इस बहस ने ऑनलाइन बहस के तमाम रिकॉर्ड को कमतर कर दिया।
बज़फीड वेबसाइट की ओर से कहा गया है, 'एक समय ऐसा था, जब करीब 6.7 लाख लोग बजफीड पर इस पोस्ट को पढ़ रहे थे।'
इस कहानी को 24 घंटे के भीतर 28 मिलियन से ज्यादा हिट्स मिले। बजफीड के मुताबिक ये कहानी उनके प्लेटफॉर्म के लिए अबतक की सबसे ज्यादा हिट पाने वाली कहानी साबित हुई। गुरुवार से शुरू होने के बाद शनिवार को #thedress चौथे नंबर पर ट्रेंड कर रहा है, जबकि फेसबुक ट्रेंडिंग में ये तीसरे नंबर पर है।
हालांकि ऐसी ही ड्रेस Amazon वेबसाइट पर बिक्री के लिए ऑनलाइन उपलब्ध है जिसमें इसका रंग ब्लू और ब्लैक बताया गया है।
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लगता है घर के मामले में आम आदमी पार्टी के नेता अरविंद केजरीवाल थोड़ा अनलकी है। इस बार उन्होनें दिल्ली के सिविल लाइंस इलाके में किराये का नया मकान तलाश तो लिया, लेकिन उसमें शिफ्ट करने से पहले ही एक नया विवाद सामने आ गया है।
अरविंद केजरीवाल ने सिविल लाइंस इलाके में 4 बी फ्लैगस्टाफ रोड पर एक मकान किराये पर लिया है, लेकिन घर में आने से पहले ही विवाद शुरू हो गया है। दरअसल परिवार में घर के मालिकाना हक को लेकर विवाद है।
इस घर के मालिकाना हक पर दावा कर रहे लोगों में से शामिल वीरेंद्र जैन का कहना है कि मकान विवादित है और इस पर कोर्ट का स्टे लगा हुआ है, जिसकी वजह से मकान केजरीवाल को नहीं दिया जा सकता।
वहीं केजरीवाल को मकान देने वाले वीरेंद्र जैन के छोटे भाई नरेंद्र जैन मानते हैं कि उनके परिवार के बीच संपत्ति विवाद है, जो दिल्ली हाईकोर्ट में चल रहा है, लेकिन उनका दावा है कि कानूनन वह इस मकान को अतिथि के तौर पर रहने के लिए किसी को भी दे सकते है। इससे कानून का कोई उल्लंघन नहीं होता है।
गौरतलब है कि जैन परिवार में पांच भाई और दो बहनें हैं। ये सभी इस मकान पर अपनी हिस्सेदारी जता रहे हैं। खास बात यह है कि 11 जुलाई को सारे परिवार वालों को हाइकोर्ट के मध्यस्थता केंद्र में जाना है। ऐसे में बड़े भाई वीरेंद्र जैन मकान किराये पर दिये जाने को अदालत की अवमानना बता रहे हैं।
वहीं इस पूरे मामले पर आम आदमी पार्टी के प्रवक्ता दिलीप पांडे कहते है कि उन्हें इस बात की जानकारी नहीं है कि इस मकान को लेकर कोई विवाद है और जो विवाद है भी वह भाइयों के बीच में हैं और इससे पार्टी को कोई लेना देना नहीं है। इससे पहले केजरीवाल मयूर विहार के मकान में जाना चाहते थे, लेकिन उस पर विवाद हो गया था। अब केजरीवाल को तय करना होगा कि वह संपत्ति विवाद वाले इस मकान में जाएं या कोई और घर खोजें।
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दिल्ली में महिलाओं के तस्कर के पास बेची गई एक किशोरी इनके चंगुल से भागने में सफल रही और शुक्रवार को असम के बारपेटा स्थित अपने घर पहुंची.
पुलिस सूत्रों ने यहां बताया कि 18 साल की इस लड़की ने मनोवारा बेगम नाम की उस महिला को भी पकड़वाया जिसने उसे तस्करों के हाथों बेचा था. आरोपी महिला को पुलिस के हवाले कर दिया गया.
सूत्रों ने बताया कि यह लड़की 17 जनवरी को एक चाय की दुकान पर मनोवारा बेगम से मिली थी और उसने अपना दुखड़ा मनोवारा बेगम को सुनाया था. लड़की अनाथ थी जिसके कारण उसे परेशानियों का सामना करना पड़ रहा था.
मनोवारा ने उसे दिल्ली में नौकरी दिलाने का वादा कर उसे हफिजुर और फरीदा नाम के दो व्यक्तियों के साथ दिल्ली भेज दिया. जब लड़की को खुद के मानव तस्करों के हाथों बेचे जाने का एहसास हुआ तब वह किसी तरह से उनके चंगुल से भागने में सफल रही और दिल्ली पुलिस के पास जा पहुंची जिन्होंने वापस ट्रेन से उसे उसके घर भेज दिया. मनोवारा ने हफिजुर और फरीदा के साथ मिलकर लड़की को एक लाख रूपए में बेचे जाने की बात कबूली.
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प्रधान न्यायाधीश न्यायमूर्ति जेएस केहर ने शनिवार को भारतीय विधि व्यवस्था में विदेशी वकीलों के प्रवेश का समर्थन किया है, हालांकि उन्होंने यह भी कहा कि 'विनिमय' प्रणाली के तहत ऐसा किया जाना चाहिए. उन्होंने कहा कि विदेशी विशेषज्ञों के लिए भारतीय विधि क्षेत्र को खोलने से देश की कानून व्यवस्था में सुधार आएगा और भारतीय वकीलों को इस बात की आशंका नहीं होनी चाहिए, कि वे (विदेशी वकील) उनकी नौकरियां ले लेंगे.
अंतर्राष्ट्रीय कानून संघ के अखिल भारतीय सम्मेलन का उद्घाटन करते हुए प्रधान न्यायाधीश ने कहा, "मुझे लगता है कि अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर वकीलों के विनिमय से विधि व्यवस्था में सुधार आएगा. अगर कोई सोचता है कि विदेशी वकील भारत में आकर उनकी नौकरियां छीन लेंगे और उनकी जगह ले लेंगे तो यह सही नहीं है. भारतीय वकील दुनिया के किसी भी अन्य हिस्से की अपेक्षा कमतर नहीं हैं." उन्होंने कहा, "लेकिन विनिमय पर जोर दिया जाना चाहिए."
न्यायमूर्ति केहर ने कहा कि भारतीय कानून व्यवस्था ने 70 वर्ष जैसी छोटी सी अवधि में शानदार विकास किया है और प्रशासनिक आधार पर संभवत: दुनिया का सबसे बड़ा और सर्वाधिक प्रभावी कानून व्यवस्था बनने की ओर अग्रसर है. टिप्पणियां
उन्होंने कहा, "वैश्विकरण के आगमन के साथ पिछले दो दशकों के दौरान भारतीय विधि व्यवस्था में काफी बदलाव आया है. आर्थिक उदारीकरण ने विदेशी विधि कंपनियों से सतत लेन-देन और अंतर्राष्ट्रीय ग्राहकों के लिए काम करना संभव बनाया. परिणामस्वरूप भारतीय विधि कंपनियों को ज्ञान, प्रणाली और कार्यकुशलता के स्थानांतरण का फायदा मिला और वे अंतर्राष्ट्रीय विधि कारोबार की महती भूमिका अदा करने में सक्षम हो सकीं."(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
अंतर्राष्ट्रीय कानून संघ के अखिल भारतीय सम्मेलन का उद्घाटन करते हुए प्रधान न्यायाधीश ने कहा, "मुझे लगता है कि अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर वकीलों के विनिमय से विधि व्यवस्था में सुधार आएगा. अगर कोई सोचता है कि विदेशी वकील भारत में आकर उनकी नौकरियां छीन लेंगे और उनकी जगह ले लेंगे तो यह सही नहीं है. भारतीय वकील दुनिया के किसी भी अन्य हिस्से की अपेक्षा कमतर नहीं हैं." उन्होंने कहा, "लेकिन विनिमय पर जोर दिया जाना चाहिए."
न्यायमूर्ति केहर ने कहा कि भारतीय कानून व्यवस्था ने 70 वर्ष जैसी छोटी सी अवधि में शानदार विकास किया है और प्रशासनिक आधार पर संभवत: दुनिया का सबसे बड़ा और सर्वाधिक प्रभावी कानून व्यवस्था बनने की ओर अग्रसर है. टिप्पणियां
उन्होंने कहा, "वैश्विकरण के आगमन के साथ पिछले दो दशकों के दौरान भारतीय विधि व्यवस्था में काफी बदलाव आया है. आर्थिक उदारीकरण ने विदेशी विधि कंपनियों से सतत लेन-देन और अंतर्राष्ट्रीय ग्राहकों के लिए काम करना संभव बनाया. परिणामस्वरूप भारतीय विधि कंपनियों को ज्ञान, प्रणाली और कार्यकुशलता के स्थानांतरण का फायदा मिला और वे अंतर्राष्ट्रीय विधि कारोबार की महती भूमिका अदा करने में सक्षम हो सकीं."(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
न्यायमूर्ति केहर ने कहा कि भारतीय कानून व्यवस्था ने 70 वर्ष जैसी छोटी सी अवधि में शानदार विकास किया है और प्रशासनिक आधार पर संभवत: दुनिया का सबसे बड़ा और सर्वाधिक प्रभावी कानून व्यवस्था बनने की ओर अग्रसर है. टिप्पणियां
उन्होंने कहा, "वैश्विकरण के आगमन के साथ पिछले दो दशकों के दौरान भारतीय विधि व्यवस्था में काफी बदलाव आया है. आर्थिक उदारीकरण ने विदेशी विधि कंपनियों से सतत लेन-देन और अंतर्राष्ट्रीय ग्राहकों के लिए काम करना संभव बनाया. परिणामस्वरूप भारतीय विधि कंपनियों को ज्ञान, प्रणाली और कार्यकुशलता के स्थानांतरण का फायदा मिला और वे अंतर्राष्ट्रीय विधि कारोबार की महती भूमिका अदा करने में सक्षम हो सकीं."(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
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यह एक लेख है: महाराष्ट्र के कोल्हापुर महानगर पालिका की मेयर अश्विनी रामाणे का पद इसलिए छिन गया है क्योंकि उन्होंने सत्ता के लिए झूठी जाति का सहारा लिया था। सोमवार को आए एक बड़े फैसले ने अश्विनी को सत्ता से बेदखल कर दिया है।
कांग्रेस को इससे करारा झटका लगा है। अश्विनी राज्य के संभ्रांत मराठा समाज की हैं। जबकि उन्होंने सत्ता हथियाने के लिए खुद को ओबीसी बताया था। ओबीसी (अन्य पिछड़ा वर्ग) श्रेणी में कुणबी जाति के होने का दावा करते हुए अश्विनी मेयर के पद पर आसीन हो सकीं, जो कि ओबीसी महिला के लिए आरक्षित था। लेकिन, झूठ की कलई खुली तो उन्हें इसी के साथ पार्षद का पद भी खोना पड़ा है।
कोल्हापुर पश्चिम महाराष्ट्र का एक प्रमुख ऐतिहासिक शहर है। इस शहर में जाति का झूठ पकड़े जाने वाली मेयर अकेली नहीं। उनके अलावा 6 अन्य पार्षद हैं, जिन पर ऐसी ही कार्रवाई हुई है। गौरतलब है कि सभी पार्षद मराठा समाज के हैं। जिन्होंने अपने आपको ओबीसी बताकर चुनाव लड़ा।
चुनाव जीतने के बाद हर एक उस पार्षद को अपने जाति प्रमाण पत्र का वेरिफिकेशन पेश करना होता है जो पिछड़ी जाति के लिए आरक्षित सीट पर विजई हुआ हो। इस प्रक्रिया में दावा करने वाले व्यक्ति की जाति की वैधता जांची जाती है। विवादित 7 पार्षदों के इसी प्रक्रिया के तहत मराठा (अगड़ी जाति) होने के सबूत मिलने पर दोषी करार दिया गया। इन 7 पार्षदों में 4 कांग्रेस के हैं। जबकि, एनसीपी, बीजेपी और ताराराणी आघाड़ी का एक - एक सदस्य हैं। टिप्पणियां
कोल्हापुर महानगरपालिका के कुल 33 वार्ड पिछड़ी जातियों के लिए आरक्षित हैं। इनमें जीते पार्षदों में से 13 ने अपनी जाति प्रमाण पत्र का वेरिफिकेशन महानगर पालिका प्रशासन के सामने प्रस्तुत किया था। इसमें से 7 के प्रमाण पत्र झूठे साबित हुए। अब इन जगहों पर चुनाव कराने के बारे में स्थानीय प्रशासन ने राज्य चुनाव आयोग से सलाह मांगी है।
महाराष्ट्र में मराठा सवर्ण समाज है, जिसे शिक्षा और सरकारी नौकरियों में आरक्षण देने की पहल बॉम्बे हाई कोर्ट सिरे से खारिज कर चुका है। राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेसी नेता नारायण राणे ने मराठाओं को पिछड़ा घोषित करते हुए उन्हें शिक्षा और सरकारी नौकरियों में 16 फीसदी आरक्षण देने की पेशकश की थी।
कांग्रेस को इससे करारा झटका लगा है। अश्विनी राज्य के संभ्रांत मराठा समाज की हैं। जबकि उन्होंने सत्ता हथियाने के लिए खुद को ओबीसी बताया था। ओबीसी (अन्य पिछड़ा वर्ग) श्रेणी में कुणबी जाति के होने का दावा करते हुए अश्विनी मेयर के पद पर आसीन हो सकीं, जो कि ओबीसी महिला के लिए आरक्षित था। लेकिन, झूठ की कलई खुली तो उन्हें इसी के साथ पार्षद का पद भी खोना पड़ा है।
कोल्हापुर पश्चिम महाराष्ट्र का एक प्रमुख ऐतिहासिक शहर है। इस शहर में जाति का झूठ पकड़े जाने वाली मेयर अकेली नहीं। उनके अलावा 6 अन्य पार्षद हैं, जिन पर ऐसी ही कार्रवाई हुई है। गौरतलब है कि सभी पार्षद मराठा समाज के हैं। जिन्होंने अपने आपको ओबीसी बताकर चुनाव लड़ा।
चुनाव जीतने के बाद हर एक उस पार्षद को अपने जाति प्रमाण पत्र का वेरिफिकेशन पेश करना होता है जो पिछड़ी जाति के लिए आरक्षित सीट पर विजई हुआ हो। इस प्रक्रिया में दावा करने वाले व्यक्ति की जाति की वैधता जांची जाती है। विवादित 7 पार्षदों के इसी प्रक्रिया के तहत मराठा (अगड़ी जाति) होने के सबूत मिलने पर दोषी करार दिया गया। इन 7 पार्षदों में 4 कांग्रेस के हैं। जबकि, एनसीपी, बीजेपी और ताराराणी आघाड़ी का एक - एक सदस्य हैं। टिप्पणियां
कोल्हापुर महानगरपालिका के कुल 33 वार्ड पिछड़ी जातियों के लिए आरक्षित हैं। इनमें जीते पार्षदों में से 13 ने अपनी जाति प्रमाण पत्र का वेरिफिकेशन महानगर पालिका प्रशासन के सामने प्रस्तुत किया था। इसमें से 7 के प्रमाण पत्र झूठे साबित हुए। अब इन जगहों पर चुनाव कराने के बारे में स्थानीय प्रशासन ने राज्य चुनाव आयोग से सलाह मांगी है।
महाराष्ट्र में मराठा सवर्ण समाज है, जिसे शिक्षा और सरकारी नौकरियों में आरक्षण देने की पहल बॉम्बे हाई कोर्ट सिरे से खारिज कर चुका है। राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेसी नेता नारायण राणे ने मराठाओं को पिछड़ा घोषित करते हुए उन्हें शिक्षा और सरकारी नौकरियों में 16 फीसदी आरक्षण देने की पेशकश की थी।
कोल्हापुर पश्चिम महाराष्ट्र का एक प्रमुख ऐतिहासिक शहर है। इस शहर में जाति का झूठ पकड़े जाने वाली मेयर अकेली नहीं। उनके अलावा 6 अन्य पार्षद हैं, जिन पर ऐसी ही कार्रवाई हुई है। गौरतलब है कि सभी पार्षद मराठा समाज के हैं। जिन्होंने अपने आपको ओबीसी बताकर चुनाव लड़ा।
चुनाव जीतने के बाद हर एक उस पार्षद को अपने जाति प्रमाण पत्र का वेरिफिकेशन पेश करना होता है जो पिछड़ी जाति के लिए आरक्षित सीट पर विजई हुआ हो। इस प्रक्रिया में दावा करने वाले व्यक्ति की जाति की वैधता जांची जाती है। विवादित 7 पार्षदों के इसी प्रक्रिया के तहत मराठा (अगड़ी जाति) होने के सबूत मिलने पर दोषी करार दिया गया। इन 7 पार्षदों में 4 कांग्रेस के हैं। जबकि, एनसीपी, बीजेपी और ताराराणी आघाड़ी का एक - एक सदस्य हैं। टिप्पणियां
कोल्हापुर महानगरपालिका के कुल 33 वार्ड पिछड़ी जातियों के लिए आरक्षित हैं। इनमें जीते पार्षदों में से 13 ने अपनी जाति प्रमाण पत्र का वेरिफिकेशन महानगर पालिका प्रशासन के सामने प्रस्तुत किया था। इसमें से 7 के प्रमाण पत्र झूठे साबित हुए। अब इन जगहों पर चुनाव कराने के बारे में स्थानीय प्रशासन ने राज्य चुनाव आयोग से सलाह मांगी है।
महाराष्ट्र में मराठा सवर्ण समाज है, जिसे शिक्षा और सरकारी नौकरियों में आरक्षण देने की पहल बॉम्बे हाई कोर्ट सिरे से खारिज कर चुका है। राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेसी नेता नारायण राणे ने मराठाओं को पिछड़ा घोषित करते हुए उन्हें शिक्षा और सरकारी नौकरियों में 16 फीसदी आरक्षण देने की पेशकश की थी।
चुनाव जीतने के बाद हर एक उस पार्षद को अपने जाति प्रमाण पत्र का वेरिफिकेशन पेश करना होता है जो पिछड़ी जाति के लिए आरक्षित सीट पर विजई हुआ हो। इस प्रक्रिया में दावा करने वाले व्यक्ति की जाति की वैधता जांची जाती है। विवादित 7 पार्षदों के इसी प्रक्रिया के तहत मराठा (अगड़ी जाति) होने के सबूत मिलने पर दोषी करार दिया गया। इन 7 पार्षदों में 4 कांग्रेस के हैं। जबकि, एनसीपी, बीजेपी और ताराराणी आघाड़ी का एक - एक सदस्य हैं। टिप्पणियां
कोल्हापुर महानगरपालिका के कुल 33 वार्ड पिछड़ी जातियों के लिए आरक्षित हैं। इनमें जीते पार्षदों में से 13 ने अपनी जाति प्रमाण पत्र का वेरिफिकेशन महानगर पालिका प्रशासन के सामने प्रस्तुत किया था। इसमें से 7 के प्रमाण पत्र झूठे साबित हुए। अब इन जगहों पर चुनाव कराने के बारे में स्थानीय प्रशासन ने राज्य चुनाव आयोग से सलाह मांगी है।
महाराष्ट्र में मराठा सवर्ण समाज है, जिसे शिक्षा और सरकारी नौकरियों में आरक्षण देने की पहल बॉम्बे हाई कोर्ट सिरे से खारिज कर चुका है। राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेसी नेता नारायण राणे ने मराठाओं को पिछड़ा घोषित करते हुए उन्हें शिक्षा और सरकारी नौकरियों में 16 फीसदी आरक्षण देने की पेशकश की थी।
कोल्हापुर महानगरपालिका के कुल 33 वार्ड पिछड़ी जातियों के लिए आरक्षित हैं। इनमें जीते पार्षदों में से 13 ने अपनी जाति प्रमाण पत्र का वेरिफिकेशन महानगर पालिका प्रशासन के सामने प्रस्तुत किया था। इसमें से 7 के प्रमाण पत्र झूठे साबित हुए। अब इन जगहों पर चुनाव कराने के बारे में स्थानीय प्रशासन ने राज्य चुनाव आयोग से सलाह मांगी है।
महाराष्ट्र में मराठा सवर्ण समाज है, जिसे शिक्षा और सरकारी नौकरियों में आरक्षण देने की पहल बॉम्बे हाई कोर्ट सिरे से खारिज कर चुका है। राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेसी नेता नारायण राणे ने मराठाओं को पिछड़ा घोषित करते हुए उन्हें शिक्षा और सरकारी नौकरियों में 16 फीसदी आरक्षण देने की पेशकश की थी।
महाराष्ट्र में मराठा सवर्ण समाज है, जिसे शिक्षा और सरकारी नौकरियों में आरक्षण देने की पहल बॉम्बे हाई कोर्ट सिरे से खारिज कर चुका है। राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेसी नेता नारायण राणे ने मराठाओं को पिछड़ा घोषित करते हुए उन्हें शिक्षा और सरकारी नौकरियों में 16 फीसदी आरक्षण देने की पेशकश की थी।
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चीन की वर्चस्व कायम करने की आक्रामक और विस्तारवादी नीति का मुकाबला करने के लिए भारत, ऑस्ट्रेलिया, अमेरिका और जापान एकबार फिर एकसाथ आ गए हैं. करीब एक दशक पहले भी चारों देश चीन का मुकाबला करने के लिए एकजुट हुए थे, लेकिन उनकी यह पहली कोशिश रंग नहीं ला पाई थी. उस समय चीन इतना मजबूत नहीं हुआ था, लेकिन इस दरम्यान दुनिया मंदी से गुजरी और चीन लगातार विकास करता रहा. उसने आर्थिक क्षेत्र और सैन्य क्षमता में तेजी से इजाफा किया और खुद को मजबूत किया. वहीं, दूसरी ओर अमेरिका का प्रभाव कम हुआ और भारत का चीन के प्रति नजरिया बदला.
चीन की OBOR का विकल्प तैयार होगा
चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग ने वैश्विक स्तर पर आर्थिक नियंत्रण स्थापित करने के लिए
वन बेल्ट वन रोड (OBOR)
परियोजना की शुरुआत की है. चीन की इस महत्वाकांक्षी परियोजना ने न सिर्फ वैश्विक शक्तियों को चिंतित कर दिया है, बल्कि क्षेत्रीय देशों को भी परेशानी में डाल दिया है. यह चिंता इसलिए भी अहम है क्योंकि शी जिनपिंग की इस परियोजना का दुनिया के पास कोई विकल्प नहीं है. ऐसे में अब भारत, ऑस्ट्रेलिया, अमेरिका और जापान एकजुट होकर इसका विकल्प बनाएंगे.
वहीं, इन देशों के एक मंच पर आने से चीन की चिंता बढ़ गई है. हाल ही में चीन सार्वजनिक रूप से अपनी चिंता जाहिर भी कर चुका है. फिलिपींस की राजधानी मनीला में आयोजित ईस्ट एशिया समिट में भारत, ऑस्ट्रेलिया, अमेरिका और जापान के राजदूत ने इस मसले को लेकर पहली बार बैठक की. इस बैठक का मकसद चीन को रोकने के लिए आपसी सहयोग की रणनीति तैयार करना और इसको जमीन पर उतारना था. हालांकि इस बैठक के बाद जारी बयान में चीन के नाम का उल्लेख नहीं किया गया, लेकिन इसमें शामिल होने वाले सभी राजनयिक इस बात से भलीभांति वाकिफ थे कि चीन की चिंता ही इनको एकसाथ लाई है. उधर, चीन भी इन देशों के गठबंधन को लेकर नाखुशी जाहिर कर चुका है.
चीन को लेकर इन देशों की हैं अपनी-अपनी चिंताएं
चीन को लेकर भारत, जापान, ऑस्ट्रेलिया और अमेरिका की अपनी-अपनी चिंताएं हैं. ऑस्ट्रेलिया इस बात को लेकर चिंतित है कि चीन उसके विश्वविद्यालयों में लगातार अपना प्रभाव बढ़ा रहा है. इसके लिए चीन ऑस्ट्रेलिया के विश्वविद्यालयों को भारी भरकम डोनेशन दे रहा है. दूसरी ओर जापान की चिंता यह है कि चीन उत्तर कोरिया का समर्थन कर रहा है. हाल ही के दिनों में उत्तर कोरिया ने जापान के ऊपर से मिसाइलें दागी थी. जापान इस बात को जानता है कि चीन अभी तक
द्वितीय विश्व युद्ध की कश्मकश
से बाहर नहीं निकलता है. साथ ही दोनों देशों के बीच तेजी से क्षेत्रीय विवाद भी बढ़ा हैं.
जापान की तरह भारत से भी चीन का क्षेत्रीय विवाद
जापान की तरह भारत के साथ भी चीन का क्षेत्रीय विवाद है. हाल के दिनों में डोकलाम पर दोनों देशों के बीच जमकर तनातनी हुई थी. इससे दोनों देशों के रिश्तों में काफी कड़वाहट आ गई थी. इतना ही नहीं, भारत को न्यूक्लियर सप्लायर्स ग्रुप (NSG) में शामिल होने से रोकने के लिए चीन पाकिस्तान से अपने रिश्ते प्रगाढ़ कर रहा है. वह आतंकवाद के मसले पर भी पाकिस्तान का साथ दे रहा है. ऐसे में भारत और जापान के लिए चीन के साथ संतुलन बनाना जरूरी हो जाता है. वहीं, अमेरिका इसे हिंद प्रशांत क्षेत्र में अपनी पैठ मजबूत करने का अवसर मानता है. भारत पहले ही चीन की वन बेल्ट वन रोड परियोजना में शामिल होने से इनकर कर चुका है. साथ ही मध्य एशियाई और दक्षिण पूर्व एशियाई बाजार में अपनी पैठ बढ़ाने की रूपरेखा तैयार कर रहा है. भारत जापान के साथ मिलकर अफ्रीकी देशों तक अपनी पहुंच बनाने के लिए बंदरगाहों को जोड़ने के प्रस्ताव पर काम कर रहा है. इसमें ऑस्ट्रेलिया भी शामिल होने का इच्छुक है.
चीन के कर्ज में डूबे हैं कई एशियाई देश
एशिया में अगर चीन के दबदबे को कम करना है तो चारों देशों को एशिया में मुक्त कारोबार का आधारभूत ढांचा खड़ा कर विकल्प पेश करना होगा. म्यांमार और श्रीलंका भारी कर्ज में डूबे हुए हैं. पाकिस्तान भी CPEC की वकालत करता रहा है. हिंद महासागर में कारोबार की दृष्टि से बेहद अहम साउथ चीन सागर पर चीन के अड़ियल रवैये का भी हल खोजना होगा. एशिया-प्रशांत क्षेत्र में चीन के वर्चस्व को चुनौती देना अब अमेरिका या जापान के अकेले के बस का नहीं रह गया है.
इसीलिए संभवतः सभी का झुकाव तेजी से आर्थिक वृद्धि कर रहे भारत की तरफ हो गया है. हालांकि वैश्विक शक्ति संतुलन में चीन को अलग-थलग करना इतना आसान भी नहीं होगा. ऐसे में निश्चित तौर पर भाारत को संतुलनकारी नीति के साथ चलना होगा.
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दिल्ली-एनसीआर में पुलिस ने एक ऐसी महिला को पकड़ा है जो खुद को आईएफएस (भारतीय विदेश सेवा) अधिकारी बताकर न सिर्फ पुलिस से सुरक्षा हासिल कर रही थी बल्कि समाज में अपना रुतबा भी बनाए हुए थी. यह फर्जी अधिकारी गुरुवार को पुलिस के जाल में फंस गई. पुलिस ने उसके पति को भी गिरफ्तार कर लिया है.
ग्रेटर नोएडा क्षेत्र के थाना बिसरख की पुलिस ने फर्जी आईएफएस अफसर जोया खान और उसके पति हर्ष प्रताप सिंह को गिरफ्तार किया है. पुलिस के मुताबिक जोया खुद को विदेश मंत्रालय का संयुक्त सचिव बताकर नोएडा, मेरठ सहित कई जनपदों की पुलिस से एस्कॉर्ट हासिल करती थी. वहीं कई बार वह खुद को यूनाइटेड नेशन ऑर्गनाइजेशन सिक्योरिटी काउंसिल की अधिकारी बताकर अपना प्रभाव दिखाती थी और दिल्ली एनसीआर में अनुचित कार्यों को अंजाम देती थी.
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक वैभव कृष्ण ने बताया कि गुरुवार को एक सूचना के आधार पर थाना बिसरख पुलिस ने फर्जी आईएफएस अफसर बनकर अनैतिक कार्य करने वाली महिला जोया खान व उसके पति हर्ष प्रताप सिंह को गिरफ्तार किया गया है. उन्होंने बताया कि पूछताछ के दौरान पुलिस को पता चला है कि महिला अपने आपको आईएफएस अधिकारी बताकर तथा यूनाइटेड नेशन ऑर्गनाइजेशन सिक्योरिटी काउंसिल की अधिकारी बताकर दिल्ली, बागपत, मेरठ, गाजियाबाद, नोएडा व गुड़गांव पुलिस का एस्कॉर्ट हासिल करती थी.
उन्होंने बताया कि जोया खान के पास से बरामद मर्सडीज कार पर यूएन का स्टीकर भी लगा है. उन्होंने बताया कि यह महिला कुछ समय पूर्व गौतम बुद्ध नगर में उनसे मिलने आई. उसके साथ एस्कॉर्ट लगा था. शक होने पर जब जांच की गई तो पता चला कि यह महिला फर्जी अधिकारी बनकर घूम रही है.
वैभव कृष्ण ने बताया कि इस बात की जांच की जा रही है कि उक्त महिला ने फर्जी अधिकारी बनकर कितने लोगों के साथ ठगी की है. उन्होंने बताया कि महिला से एक फोन बरामद हुआ है, जिसमें एक एप डाउन लोड है, जिसके माध्यम से यह वॉइस चेंज करके खुद फोन करती थी. वह आईएफएस अधिकारी के पीए अनिल शर्मा बनकर पुलिस अफसरों से बात करती थी, तथा पुलिस अफसरों पर प्रभाव डालकर एस्कॉर्ट हासिल करती थी.
वैभव कृष्ण ने बताया कि उक्त महिला ने यूनाइटेड नेशन ऑर्गनाइजेशन सिक्योरिटी काउंसिल के नाम से एक फर्जी ई-मेल आईडी बना रखी है. इसके माध्यम से वह विभिन्न जनपदों के पुलिस कप्तानों को मेल करती थी तथा उसके आधार पर एस्कॉर्ट प्राप्त करती थी.
एसएसपी ने बताया कि मेरठ में प्रधानमंत्री के कार्यक्रम के दौरान महिला का वहां उपस्थित होना तथा भारत की गोपनीय सूचना विदेश में उपलब्ध कराने का अभी तक कोई पुख्ता प्रमाण नहीं मिला है. गिरफ्तार पति-पत्नी से गहनता से पूछताछ की जा रही है.
(इनपुट भाषा से भी)
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दिग्गज एक्टर ऋषि कपूर (Rishi Kapoor) ने बॉलीवुड के शोमैन कहे जाने वाले अपने पिता राज कपूर (Raj Kapoor) के जन्मदिन पर उनके सम्मान में ट्विटर पर एक पुरानी तस्वीर शेयर की. इसके बाद दिग्गज एक्टर ऋषि कपूर के प्रशंसकों ने उन्हें बधाई देनी शुरू कर दी. 'मेरा नाम जोकर' की एक तस्वीर शेयर करते हुए ऋषि कपूर ने लिखा: "जन्मदिन की बधाई पिता जी, हम आपको हमेशा याद रखेंगे..ढेर सारा प्यार." उनके इस ट्वीट को 590 बार रीट्वीट किया गया, जबकि 11.4 हजार लाइक मिले.
Happy Birthday dad! We shall always remember you.......love! pic.twitter.com/mT38hpxTma
ऋषि कपूर (Rishi Kapoor) के ट्वीट पर बॉलीवुड अभिनेता अमित साध ने लिखा, "अपने पसंदीदा दिग्गज राज कपूर साब (Raj Kapoor) को उनके 95वें जन्मदिन पर याद करते हुए. हम आज जिसके अंग हैं, उसे उन्होंने ही बनाया, हम उनकी कला और कौशल की परिपाटी पर चलते हैं. वह हमेशा सराहे जाएंगे."
अगर वर्कफ्रंट की बात करें तो ऋषि कपूर (Rishi Kapoor) की फिल्म 'द बॉडी' (The Body) हाल ही में रिलीज हुई है. इस फिल्म में उनके साथ अभिनेता इमरान हाशमी है. इस फिल्म में उनकी एक्टिंग की काफी तारीफ हो रही है. बता दें कि बॉलीवुड के दिग्गज ऋषि कपूर ने एक बाल कलाकार के तौर पर बॉलीवुड में एंट्री की. फिल्म मेरा नाम जोकर के बाद से वह यादों की बारात, जहरीला इंसान, अमर अकबर ऐंथनी जैसी कई जबरदस्त फिल्मों में अहम भूमिका निभा चुके हैं.
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दिल्ली के तीमारपुर से 'आप' के विधायक पंकज पुष्कर ने वजीराबाद वाटर वर्क्स के सामने धरना देने के साथ 'आप' के खिलाफ कुछ तस्वीरों के साथ प्रेस कांफ्रेंस की. उनका आरोप है कि सरकार पानी देने में भेदभाव कर रही है. सबसे कम पानी उत्तरी दिल्ली को दिया जा रहा है, उनके साथ प्रीरेक किया है. पानी की समस्या के लिए सिर्फ हरियाणा ज़िम्मेदार नहीं है. जल बोर्ड सबसे बड़ा दोषी है. कपिल के जाने के बाद मनीष सिसोदिया के पास जल विभाग है. मंगलवार को जल बोर्ड के अंदर जाकर चीफ इंजीनियर के दफ्तर के बाहर लगे बोर्ड की तस्वीर ली है. तस्वीर में लिखा है कि उत्तरी दिल्ली को सिर्फ 9 MGD(मिलियन गैलन प्रतिदिन) पानी मिल रहा है. जबकि 44 MGD मिलना चाहिए. वहीं दक्षिणी दिल्ली को 36 MGD पानी मिल रहा है और मध्य दिल्ली को 39 MGD. दिल्ली सरकार सुनती नहीं है. समस्या के लिए सिर्फ दूसरों को जिम्मेदार ठहराती है. टिप्पणियां
गौरतलब है कि मंगलवार को मनीष सिसोदिया ने एक प्रेस कांफ्रेंस करके दिल्ली में हो रही पानी की समस्या के लिए हरियाणा को दोषी ठहराया था. उनका आरोप है कि दिल्ली को प्रतिदिन 900 MGD पानी की आवश्यकता है. हरियाणा से उन्हें लगभग 80 MGD कम पानी मिल रहा है. मनीष ने यह भी कहा था कि अगर पीएमओ (PMO) जल्द दख़ल नहीं देगा तो वे सारे वीआईपी इलाकों का पानी बंद कर देंगे. हरियाणा में बीजेपी की सरकार है.
वहीं हरियाणा सरकार का कहना है कि दिल्ली को हर महीने 725 क्यूसेक पानी देना होता है, जो कि हरियाणा सरकार दे रही है. पिछले कुछ महीनों से लगभग 25 क्यूसेक अतिरिक्त पानी दिल्ली को दिया जा रहा है, जो कि हरियाणा में पानी की ख़पत बढ़ने से बंद कर दिया गया है.
गौरतलब है कि मंगलवार को मनीष सिसोदिया ने एक प्रेस कांफ्रेंस करके दिल्ली में हो रही पानी की समस्या के लिए हरियाणा को दोषी ठहराया था. उनका आरोप है कि दिल्ली को प्रतिदिन 900 MGD पानी की आवश्यकता है. हरियाणा से उन्हें लगभग 80 MGD कम पानी मिल रहा है. मनीष ने यह भी कहा था कि अगर पीएमओ (PMO) जल्द दख़ल नहीं देगा तो वे सारे वीआईपी इलाकों का पानी बंद कर देंगे. हरियाणा में बीजेपी की सरकार है.
वहीं हरियाणा सरकार का कहना है कि दिल्ली को हर महीने 725 क्यूसेक पानी देना होता है, जो कि हरियाणा सरकार दे रही है. पिछले कुछ महीनों से लगभग 25 क्यूसेक अतिरिक्त पानी दिल्ली को दिया जा रहा है, जो कि हरियाणा में पानी की ख़पत बढ़ने से बंद कर दिया गया है.
वहीं हरियाणा सरकार का कहना है कि दिल्ली को हर महीने 725 क्यूसेक पानी देना होता है, जो कि हरियाणा सरकार दे रही है. पिछले कुछ महीनों से लगभग 25 क्यूसेक अतिरिक्त पानी दिल्ली को दिया जा रहा है, जो कि हरियाणा में पानी की ख़पत बढ़ने से बंद कर दिया गया है.
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देश, दुनिया, महानगर, खेल, आर्थिक और बॉलीवुड में क्या कुछ हुआ. जानने के लिए यहां पढ़ें समय के साथ साथ खबरों का लाइव अपडेशन...
12.13 AM:
शातिर बंटी चोर को पुणे से गिरफ्तार किया गया. 200 से ज्यादा मामले दर्ज हैं बंटी चोर के खिलाफ.
10.30 PM:
भारत और पाकिस्तान के जल सचिवों के बीच 28-29 जनवरी को होने वाली वार्ता रद्द.
09.00 PM:
केंद्रीय मंत्री जयराम रमेश का बड़ा बयान, कहा- झारखंड में सरकार पर हावी बिचौलिये, उद्योगपति चलाते हैं राजनीति.
08.40 PM:
विश्वरुपम पर बैन को लेकर आमिर खान ने उठाए सवाल, कहा- सेंसर बोर्ड से पास फिल्म पर पाबंदी लगाना गलत.
08.10 PM:
जालंधर में एक इंजीनियर ने दफ्तर में की खुदकुशी, दीवार पर लिखा सुसाइड नोटिस, अफसरों पर ब्लैकमेलिंग का आरोप.
07.45 PM:
गैंगरेप पर जस्टिस जेएस वर्मा ने मांगा पुलिस कमिश्नर का इस्तीफा, कहा- गृह सचिव और गृह मंत्री को भी जताना था अफसोस.
07.22 PM:
हिंदू आतंकवाद पर शिंदे के बयान को लेकर अब भी जारी है बवाल, नासिक में बीजेपी कार्यकर्ताओं ने किया प्रोटेस्ट.
07.00 PM:
भारतीय कैदी की मौत पर दवाब के आगे झुकी पाक सरकार, चमेल सिंह को पीट-पीटकर मारने की होगी न्यायिक जांच.
06.25 PM:
जयपुर: बीजेपी के SC/ST कार्यकर्ता लिटरेचर फेस्टिवल में हंगामा करने पहुंचे.
05.50 PM:
आशीष नंदी के खिलाफ शिकायत दर्ज, जयपुर लिटरेचर फेस्टिवल में नंदी ने कहा, देश के भ्रष्टाचार में सबसे बड़ा हाथ दलितों, पिछड़ों और अनुसूचित जाति जनजाति के लोगों का है.
05.30 PM:
यूपी की पूर्व मुख्यमंत्री और बीएसपी सुप्रीमो मायावती ने कहा, आशीष नंदी के खिलाफ केस दर्ज हो.
05.00 PM:
बयान से ठेस पहुंची तो माफी मांगता हूं: आशीष नंदी
04.10 PM:
जयपुर साहित्य सम्मलेन में आशीष नंदी के देश में ज्यादातर भ्रष्ट्राचार और घोटालो में एससी/एसटी वर्ग के लोगों के शामिल होने के बयान पर भड़के एससी/एसटी आयोग के अध्यक्ष पी एल पुनिया ने उनके बयान को संविधान के खिलाफ और एक वर्ग को अपमानित करने वाला बताते हुए उनके खिलाफ मुकदमा दर्ज कर जेल भेजने की मांग की है.
04.00 PM:
देश के एक बड़े समाजशास्त्री और बौद्धिक आशीष नंदी ने अजीबोगरीब बयान देकर बवाल खड़ा कर दिया है. जयपुर लिटरेचर फेस्टिवल में उन्होंने कहा कि देश के भ्रष्टाचार में सबसे बड़ा हाथ दलितों, पिछड़ों और अनुसूचित जाति जनजाति के लोगों का है. उनके इस बयान पर तीखी प्रतिक्रिया आ रही है.
12.15 PM:
दिल्ली में राजपथ पर झांकी ने देश-दुनिया का मन मोहा.
11.21 AM:
दिल्ली की झांकी में ललित कला की प्रस्तुति.
10.50 AM:
दिल्ली में राजपथ पर परेड के दौरान आईएनएस विक्रमादित्य का मॉडल दिखा.
10.30 AM:
दिल्ली में गणतंत्र दिवस समारोह में भारत की सैन्य शक्ति का प्रदर्शन हो रहा है.
10.01 AM:
दिल्ली: राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी ने फहराया तिरंगा.
09.59 AM:
दिल्ली: समारोह में पहुंचे राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी.
09.45 AM:
प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने शहीदों को श्रद्धांजलि दी.
09.43 AM:
दिल्ली: अमर जवान ज्योति पर शहीदों को सलामी.
09.30 AM:
दिल्ली: गणतंत्र दिवस में भूटान नरेश जिग्मे खेसर वांगचुक होंगे मुख्य अतिथि.
09.23 AM:
गणतंत्र दिवस परेड में दुनिया देखेगी हिन्दुस्तान की ताकत, एमबीटी अर्जुन टैंक से लेकर ब्रह्मोस और अग्नि-5 मिसाइल तक होंगी झांकी में शामिल
09.15 AM:
दिल्ली: परेड में वायुसेना के चार हेलीकॉप्टर शामिल होंगे, परेड में अग्नि 5 मिसाइल मुख्य आकर्षण
09.10 AM:
दिल्ली: राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी लेंगे 26 जनवरी के परेड की सलामी, राज्यों, मंत्रालयों की 19 झांकियां दिखेंगी
09.01 AM:
दिल्ली: परेड के रास्ते में 60 से अधिक सीसीटीवी कैमरे
08.55 AM:
दिल्ली: दोपहर साढ़े बारह बजे तक नौ मेट्रो स्टेशन बंद.
08.45 AM:
परेड के रास्ते में ऊंची इमारतों पर कमांडो तैनात
08.40 AM:
गणतंत्र दिवस पर दिल्ली में कड़ी सुरक्षा
08.25 AM:
सुरक्षा के मद्देनजर दिल्ली, मुंबई में अलर्ट
08.00 AM:
राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी लेंगे परेड की सलामी.
07.30 AM:
देश मना रहा है 64वां गणतंत्र दिवस, राजपथ पर आज निकलेगी देश के आन,बान और शान की झांकी, कड़ी सुरक्षा के बीच राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी लहराएंगे तिरंगा
07.15 AM:
देश मना रहा है आज 64वां गणतंत्र दिवस
07.00 AM:
राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी का पाकिस्तान को कडा संदेश, कहा हमारी चुप्पी को कमजोरी ना समझें पड़ोसी, गैंगरेप पर बोले- घटना ने देश को झकझोर
06.50 AM:
गणतंत्र दिवपस पर पद्म पुरस्कारों का एलान, प्रोफेसर यशपाल को पद्मविभूषण, राजेश खन्ना,शर्मिला टैगोर और द्रविड को भूषण, किसी को नहीं मिला भारत रत्न, अवार्ड नहीं मिलने से रेसलर सुशील कुमार नाराज
06.40 AM:
रायसीना हिल्स से लाल किले तक जाएगी परेड, राजपथ पर देश की तीनों सेनाएं दिखाएंगी ताकत
06.31 AM:
गणतंत्र दिवस के मद्देनजर दिल्ली में सुरक्षा व्यवस्था के कड़े इंतजाम किए गए हैं.
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Harbhajan Singh posts Tweet ridiculing Sri Lankan team, deletes post later. (Might have realised that they are gona get the shot back in this series) #INDVSLpic.twitter.com/b2rj5n3IK0
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आज छत्तीसगढ़ प्रांत के लिए क्रिकेट खेलने वाली 18 वर्षीय श्रद्धा की चर्चा भले ही चारों ओर हो रही हो, लेकिन हमेशा से ऐसा नहीं था. वह पहली ऐसी दिव्यांग महिला हैं जो किसी भी राज्य की ओर से लगातार क्रिकेट खेल रही हैं. वह छत्तीसगढ़ की महिला क्रिकेट टीम के लिए चुनी गई हैं.
गौरतलब है कि श्रद्धा वैष्णव अभी महज 18 वर्ष की हैं और आज उनकी धमक पूरे देश में सुनी जा सकती है. उन्हें देख कर इस बात का अंदाजा लगाना मुश्किल है कि वह किन-किन दुश्वारियों से होकर गुजरी हैं. वह सुनने और बोलने में अक्षम रही हैं. देश के भीतर किसी भी महिला दिव्यांग खिलाड़ी की यह अनोखी और पहली कोशिश है.
छत्तीसगढ़ के बिलासपुर शहर से शुरू हुआ सफर...
छत्तीसगढ़ को हमेशा से ही एक ऐसे राज्य के तौर पर जाना जाता रहा है जो संगीनों के साए में आगे बढ़ रहा है. जहां आम खिलाड़ियो के लिए मामला उलझा हो वहां
दिव्यांग खिलाड़ियों
को भला कौन पूछता है. हालांकि श्रद्धा ने इन तमाम दिक्कतों का सामना करते हुए क्रिकेट खेलने का फैसला किया. वह 13 वर्ष की उम्र से ही क्रिकेट खेल रही हैं. शुरुआती दिनों में वह मीडियम पेस गेंदबाजी करती थीं लेकिन समय बीतने के साथ-साथ और मौके की नजाकत को भांपते हुए उन्होंने स्पिन गेंदबाजी करने का फैसला लिया.
श्रद्धा अब राज्य क्रिकेट टीम का हिस्सा हैं...
पिछले सप्ताह उनकी प्रतिभा और गेंदबाजी को देखते हुए राज्य की टीम में चुन लिया गया है. उनके बोलने और सुनने की क्षमता में 90 फीसद की कमी है. इसका इलाज संभव नहीं. इस सभी के बावजूद वो अपने राज्य और देशवासियों के चेहरे पर मुस्कान और खुशी लाने के प्रति प्रतिबद्ध हैं.
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क्रिकेट देखते-देखते लिया गेंदबाजी का फैसला...
जैसा कि आम घरों में होता है कि लड़के क्रिकेट खेलते हैं और टीवी पर क्रिकेट देखा करते हैं. श्रद्धा का छोटा भाई रमेश क्रिकेट देख रहा था. उसकी देखादेखी श्रद्धा भी क्रिकेट देखने लगीं. एक दिन उन्होंने अपने भाई से कहा कि वह गेंदबाजी करना चाहती हैं. उनका भाई उन्हें एक
क्रिकेट अकादमी
तक ले गया. वहां वह गेंदबाजी की प्रैक्टिस करने लगीं. उनके कोच मोहन सिंह ठाकुर कहते हैं कि श्रद्धा मेहनत से जी नहीं चुराती. पहलेपहल तो वह मीडियम पेस गेंदबाजी कर रही थीं लेकिन धीरे-धीरे वह लेग-ब्रेक गेंदबाजी की ओर मुड़ गईं. वह बाएं हाथ से गेंदबाजी करती हैं और यही चीज उन्हें और भी खतरनाक बनाती है.
दूसरों के लिए बन रही हैं नजीर...
श्रद्धा की इस जबर्दस्त सफलता ने बहुतों को क्रिकेट की ओर मोड़ा है. क्रिकेट अकादमी में ट्रेनर अनिल ठाकुर कहते हैं कि श्रद्धा की सफलता ने बहुतों को क्रिकेट के प्रति खींचा है. 15 नई और छोटी लड़कियां क्रिकेट अकादमी में दाखिल हुई हैं. छत्तीसगढ़ राज्य क्रिकेट संघ के अध्यक्ष बलदेव सिंह कहते हैं कि श्रद्धा आज बहुतों के लिए उम्मीद का किरण हैं. उनकी यह दुर्लभ और अनोखी उपलब्धि है.
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अमेरिका ने खूंखार आतंकी संगठन इस्लामिक स्टेट (आईएस) के खिलाफ अब तक की सबसे बड़ी कार्रवाई करते हुए अफगानिस्तान के नंगारहर में सबसे बड़ा
गैर परमाणु बम 'GBU-43'
गिराया है. करीब 10 क्विंटल (21,000 पाउंड) वजनी इस बम को 'मदर ऑफ ऑल बॉम्ब' के नाम से जाना जाता है. इस बेहद घातक बम को MC-130 एयरक्राफ्ट से गिराया गया. पेंटागन के प्रवक्ता ने बताया कि इस बम का पहली बार इस्तेमाल किया गया है.
'मदर ऑफ ऑल बॉम्ब' के बारे में खास बातें....
1. 10 क्विंटव वजनी GBU-43/B मैसिव ऑर्डिनेंस एयर ब्लास्ट (MOAB) बम जीपीएस गाइडेड है.
2. इस बम को अमेरिकी सेना के अल्बर्ट वेमोर्ट्स ने विकसित किया था.
3. साल 2003 में इस बम का पहली बार परीक्षण किया गया था.
4. सफल परीक्षण के बाद इस बम को 2003 में इराक युद्ध के दरम्यान बनाया गया
5. इससे पहले कभी इसे इस्तेमाल नहीं किया गया.
6. इस बम को 'मदर ऑफ ऑल बॉम्ब' के नाम से जाना जाता है.
7. अमेरिका के इस बम के जवाब में रूस ने फॉदर ऑफ ऑल बॉम्ब विकसित किया, जो GBU-43 से चार गुना ज्यादा शक्तिशाली है.
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झारखंड की राजधानी रांची से करीब 50 किलोमीटर दूर बुंडू के नजदीक यात्रियों से भरी एक बस के लोहे से लदे एक ट्रेलर से टकरा जाने के कारण बस में सवार 20 लोगों की मौत हो गई.
पुलिस अधीक्षक (रांची ग्रामीण) एवी मिंज ने बताया ‘दुर्घटना तड़के करीब साढ़े तीन बजे हुई. बस जमशेदपुर से बिहार के आरा जा रही थी. 13 लोगों की घटनास्थल पर ही मौत हो गई और सात ने अस्पतालों में दम तोड़ दिया.’ उन्होंने बताया कि हादसे के चलते लोहे की छड़ें बस के भीतर घुस गईं जिसके चलते इतने अधिक लोगों की जान चली गई.
दुर्घटना में 25 लोग घायल हुए हैं जिनमें से 14 की हालत गंभीर बताई जाती है. मिंज ने बताया कि पुलिस तत्काल घटनास्थल पर पहुंच गई और घायलों को अस्पताल पहुंचाया. झारखंड में हाल के वर्षों में यह अब तक की सबसे भीषण सड़क दुर्घटना है.
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एनसीआर में दिल्ली से सटे सूबे उत्तर प्रदेश, हरियाणा और राजस्थान के कई शहर शामिल हैं। एनसीआर में 4 करोड़ 70 से ज्यादा आबादी रहती है। समूचे एनसीआर में दिल्ली का क्षेत्रफल 1,484 स्क्वायर किलोमीटर है। देश की राजधानी एनसीआर का 2.9 फीसदी भाग कवर करती है। एनसीआर के तहत आने वाले क्षेत्र में उत्तर प्रदेश के मेरठ, गाजियाबाद, गौतम बुद्ध नगर (नोएडा), बुलंदशहर,शामली, बागपत, हापुड़ और मुजफ्फरनगर; और हरियाणा के फरीदाबाद, गुड़गांव, मेवात, रोहतक, सोनीपत, रेवाड़ी, झज्जर, पानीपत, पलवल, महेंद्रगढ़, भिवाड़ी, जिंद और करनाल जैसे जिले शामिल हैं। राजस्थान से दो जिले - भरतपुर और अलवर एनसीआर में शामिल किए गए हैं। राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र दिल्ली 1,484 कि॰मी2 (573 वर्ग मील) में विस्तृत है, जिसमें से 783 कि॰मी2 (302 वर्ग मील) भाग ग्रामीण और 700 कि॰मी2 (270 वर्ग मील) भाग शहरी घोषित है। दिल्ली उत्तर-दक्षिण में अधिकतम 51.9 कि॰मी॰ (32 मील) है और पूर्व-पश्चिम में अधिकतम चौड़ाई 48.48 कि॰मी॰ (30 मील) है। दिल्ली के अनुरक्षण हेतु तीन संस्थाएं कार्यरत है:-दिल्ली नगर निगम:विश्व का सबसे बड़ा स्थानीय निकाय है, जो कि अनुमानित १३७.८० लाख नागरिकों (क्षेत्रफल 1,397.3 कि॰मी2 या 540 वर्ग मील) को नागरिक सेवाएं प्रदान करती है। यह क्षेत्रफ़ल के हिसाब से भी मात्र टोक्यो से ही पीछे है। ". नगर निगम १३९७ वर्ग कि॰मी॰ का क्षेत्र देखती है। वर्तमान में दिल्ली नगर निगम को तीन हिस्सों में बाट दिया गया है उत्तरी दिल्ली नगर निगम,पूर्वी दिल्ली नगर निगम व दक्षिण दिल्ली नगर निगम। नई दिल्ली नगरपालिका परिषद: (एन डी एम सी) (क्षेत्रफल 42.7 कि॰मी2 या 16 वर्ग मील) नई दिल्ली की नगरपालिका परिषद् का नाम है। इसके अधीन आने वाला कार्यक्षेत्र एन डी एम सी क्षेत्र कहलाता है। दिल्ली छावनी बोर्ड: (क्षेत्रफल (43 कि॰मी2 या 17 वर्ग मील) जो दिल्ली के छावनी क्षेत्रों को देखता है। दिल्ली एक अति-विस्तृत क्षेत्र है। यह अपने चरम पर उत्तर में सरूप नगर से दक्षिण में रजोकरी तक फैला है। पश्चिमतम छोर नजफगढ़ से पूर्व में यमुना नदी तक (तुलनात्मक परंपरागत पूर्वी छोर)। वैसे शाहदरा, भजनपुरा, आदि इसके पूर्वतम छोर होने के साथ ही बड़े बाज़ारों में भी आते हैं। रा.रा.क्षेत्र में उपर्युक्त सीमाओं से लगे निकटवर्ती प्रदेशों के नोएडा, गुड़गांव आदि क्षेत्र भी आते हैं। दिल्ली की भू-प्रकृति बहुत बदलती हुई है। यह उत्तर में समतल कृषि मैदानों से लेकर दक्षिण में शुष्क अरावली पर्वत के आरम्भ तक बदलती है। दिल्ली के दक्षिण में बड़ी प्राकृतिक झीलें हुआ करती थीं, जो अब अत्यधिक खनन के कारण सूखती चली गईं हैं। इनमें से एक है बड़खल झील। यमुना नदी शहर के पूर्वी क्षेत्रों को अलग करती है। ये क्षेत्र यमुना पार कहलाते हैं, वैसे ये नई दिल्ली से बहुत से पुलों द्वारा भली-भांति जुड़े हुए हैं। दिल्ली मेट्रो भी अभी दो पुलों द्वारा नदी को पार करती है। दिल्ली 28.61°N 77.23°E / 28.61; 77.23 पर उत्तरी भारत में बसा हुआ है। यह समुद्रतल से ७०० से १००० फीट की ऊँचाई पर हिमालय से १६० किलोमीटर दक्षिण में यमुना नदी के किनारे पर बसा है। यह उत्तर, पश्चिम एवं दक्षिण तीन तरफं से हरियाणा राज्य तथा पूर्व में उत्तर प्रदेश राज्य द्वारा घिरा हुआ है। दिल्ली लगभग पूर्णतया गांगेय क्षेत्र में स्थित है। दिल्ली के भूगोल के दो प्रधान अंग हैं यमुना सिंचित समतल एवं दिल्ली रिज (पहाड़ी)। अपेक्षाकृत निचले स्तर पर स्थित मैदानी उपत्यकाकृषि हेतु उत्कृष्ट भूमि उपलब्ध कराती है, हालांकि ये बाढ़ संभावित क्षेत्र रहे हैं। ये दिल्ली के पूर्वी ओर हैं। और पश्चिमी ओर रिज क्षेत्र है। इसकी अधिकतम ऊँचाई ३१८ मी.(१०४३ फी.) तक जाती है। यह दक्षिण में अरावली पर्वतमाला से आरम्भ होकर शहर के पश्चिमी, उत्तर-पश्चिमी एवं उत्तर-पूर्वी क्षेत्रों तक फैले हैं। दिल्ली की जीवनरेखा यमुना हिन्दू धर्म में अति पवित्र नदियों में से एक है। एक अन्य छोटी नदी हिंडन नदी पूर्वी दिल्ली को गाजियाबाद से अलग करती है। दिल्ली सीज़्मिक क्षेत्र-IV में आने से इसे बड़े भूकम्पों का संभावी बनाती है। भूमिगत जलभृत लाखों वर्षों से प्राकृतिक रूप से नदियों और बरसाती धाराओं से नवजीवन पाते रहे हैं। भारत में गंगा-यमुना का मैदान ऐसा क्षेत्र है, जिसमें सबसे उत्तम जल संसाधन मौजूद हैं। यहाँ अच्छी वर्षा होती है और हिमालय के ग्लेशियरों से निकलने वाली सदानीरा नदियाँ बहती हैं। दिल्ली जैसे कुछ क्षेत्रों में भी कुछ ऐसा ही है। इसके दक्षिणी पठारी क्षेत्र का ढलाव समतल भाग की ओर है, जिसमें पहाड़ी श्रृंखलाओं ने प्राकृतिक झीलें बना दी हैं। पहाड़ियों पर का प्राकृतिक वनाच्छादन कई बारहमासी जलधाराओं का उद्गम स्थल हुआ करता था। व्यापारिक केन्द्र के रूप में दिल्ली आज जिस स्थिति में है; उसका कारण यहाँ चौड़ी पाट की एक यातायात योग्य नदी यमुना का होना ही है; जिसमें माल ढुलाई भी की जा सकती थी। ५०० ई. पूर्व में भी निश्चित ही यह एक ऐसी ऐश्वर्यशाली नगरी थी, जिसकी सम्पत्तियों की रक्षा के लिए नगर प्राचीर बनाने की आवश्यकता पड़ी थी। सलीमगढ़ और पुराना किला की खुदाइयों में प्राप्त तथ्यों और पुराना किला से इसके इतने प्राचीन नगर होने के प्रमाण मिलते हैं।
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अफगानिस्तान में तालिबान द्वारा एक स्कूल पर किए गए जहरीले पदार्थ के संदिग्ध हमले की वजह से 120 से अधिक छात्राएं बीमार हो गईं। एक मीडिया रपट में यह जानकारी दी गई।
अधिकारियों ने बीबीसी को बताया कि अधिकतर छात्राओं को इलाज के बाद अस्पताल से छुट्टी दे दी गई है, लेकिन 30 का अब भी इलाज चल रहा है।
प्रारम्भिक जांच से पता चला है कि टकहार प्रांत में स्थित बीबी हाजी स्कूल की कक्षाओं में जहरीले पदार्थ का छिड़काव किया गया था। छात्राओं को बुधवार को उल्टी, सिर दर्द और चक्कर आने की शिकायत के बाद अस्पताल में भर्ती कराया गया।टिप्पणियां
पुलिस प्रवक्ता खलीलउल्लाह असीर ने बताया कि उन्हें संदेह है कि तालिबान विद्रोही स्कूली छात्राओं पर जहरीले हमला कर डर फैलाने की कोशिश कर रहे हैं।"
उल्लेखनीय है कि अप्रैल में टकहार में ही 100 से अधिक छात्राओं को स्कूल का पानी पीने के बाद अस्पताल में भर्ती कराना पड़ा था।
अधिकारियों ने बीबीसी को बताया कि अधिकतर छात्राओं को इलाज के बाद अस्पताल से छुट्टी दे दी गई है, लेकिन 30 का अब भी इलाज चल रहा है।
प्रारम्भिक जांच से पता चला है कि टकहार प्रांत में स्थित बीबी हाजी स्कूल की कक्षाओं में जहरीले पदार्थ का छिड़काव किया गया था। छात्राओं को बुधवार को उल्टी, सिर दर्द और चक्कर आने की शिकायत के बाद अस्पताल में भर्ती कराया गया।टिप्पणियां
पुलिस प्रवक्ता खलीलउल्लाह असीर ने बताया कि उन्हें संदेह है कि तालिबान विद्रोही स्कूली छात्राओं पर जहरीले हमला कर डर फैलाने की कोशिश कर रहे हैं।"
उल्लेखनीय है कि अप्रैल में टकहार में ही 100 से अधिक छात्राओं को स्कूल का पानी पीने के बाद अस्पताल में भर्ती कराना पड़ा था।
प्रारम्भिक जांच से पता चला है कि टकहार प्रांत में स्थित बीबी हाजी स्कूल की कक्षाओं में जहरीले पदार्थ का छिड़काव किया गया था। छात्राओं को बुधवार को उल्टी, सिर दर्द और चक्कर आने की शिकायत के बाद अस्पताल में भर्ती कराया गया।टिप्पणियां
पुलिस प्रवक्ता खलीलउल्लाह असीर ने बताया कि उन्हें संदेह है कि तालिबान विद्रोही स्कूली छात्राओं पर जहरीले हमला कर डर फैलाने की कोशिश कर रहे हैं।"
उल्लेखनीय है कि अप्रैल में टकहार में ही 100 से अधिक छात्राओं को स्कूल का पानी पीने के बाद अस्पताल में भर्ती कराना पड़ा था।
पुलिस प्रवक्ता खलीलउल्लाह असीर ने बताया कि उन्हें संदेह है कि तालिबान विद्रोही स्कूली छात्राओं पर जहरीले हमला कर डर फैलाने की कोशिश कर रहे हैं।"
उल्लेखनीय है कि अप्रैल में टकहार में ही 100 से अधिक छात्राओं को स्कूल का पानी पीने के बाद अस्पताल में भर्ती कराना पड़ा था।
उल्लेखनीय है कि अप्रैल में टकहार में ही 100 से अधिक छात्राओं को स्कूल का पानी पीने के बाद अस्पताल में भर्ती कराना पड़ा था।
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उच्चतम न्यायालय ने निवेशकों को 24 हजार करोड़ रुपए लौटाने के फैसले पर सहारा समूह की पुनर्विचार याचिका खारिज की।
न्यायमूर्ति केएस राधाकृष्णन और न्यायमूर्ति जेएस खेहड़ की खंडपीठ ने सहारा समूह की ओर से दायर पुनर्विचार याचिका पर बुधवार को चैंबर में विचार करने के बाद उसे खारिज कर दिया। इसी पीठ ने गत 31 अगस्त को सहारा समूह को निवेशकों का धन वापस करने का आदेश दिया था।
न्यायाधीशों ने अपने आदेश में कहा, ‘‘हमारे सामने पेश सारे रिकॉर्ड पर सावधानी से गौर किया गया है। इन पुनर्विचार याचिकाओं पर विचार नहीं किया जा रहा है और इसलिए इन्हें खारिज किया जा रहा है।’’ न्यायालय ने कहा कि कंपनियों द्वारा पेश सभी दलीलों पर पहले फैसले के समय ही विचार किया जा चुका था। इन पर फिर से गौर करने की कोई आवश्यकता नहीं है।
न्यायाधीशों ने कहा, ‘‘इस मामले में हम दोनों द्वारा व्यक्त राय में किसी प्रकार का विचलन नहीं है। इसके विपरीत, आवेदक द्वारा कानूनी और तथ्यात्मक रुप से प्रस्तुत सभी दलीलों पर हर संभव पहलू और दृष्टिकोण से गौर किया गया, और उनका निस्तारण किया गया और जवाब दिया गया।’’ सहारा की पुनर्विचार याचिका खारिज किया जाना इसलिए महत्वपूर्ण हो गया है क्योंकि इन कंपनियों ने निवेशकों का पैसा लौटाने के लिए और समय दिए जाने की एक नई अर्जी भी पेश कर रखी है।
न्यायमूर्ति राधाकृष्णन और न्यायमूर्ति खेहड की खंडपीठ ने 31 अगस्त को फैसला सुनाया था लेकिन 5 दिसंबर को प्रधान न्यायाधीश अल्तमस कबीर की अध्यक्षता वाली पीठ ने इस फैसले में सुधार करते हुए सहारा समूह की कंपनियों को निवेशकों का धन लौटाने के लिए नौ सप्ताह का और समय दे दिया था।
न्यायमूर्ति कबीर की अध्यक्षता वाली पीठ ने सेबी और निवेशकों के संगठन के विरोध के बावजूद सहारा समूह को यह मोहलत दे दी थी।
सेबी ने इसका विरोध करते हुए कहा था कि किसी अन्य पीठ के निर्णय में इस तरह से सुधार करना उचित नहीं है और सहारा समूह की अर्जी पर न्यायमूर्ति राधाकृष्णन और न्यायमूर्ति खेहड़ की पीठ को ही विचार करना चाहिए।
सहारा समूह ने मंगलवार को भी प्रधान न्यायाधीश के समक्ष इस मामले का उल्लेख किया था।
न्यायमूर्ति राधाकृष्णन और न्यायमूर्ति खेहड़ की खंडपीठ ने 31 अगस्त के निर्णय में सहारा समूह की इन कंपनियों द्वारा निवेशकों से धन जुटाने के लिए नियम कानूनों का उल्लंघन करने के कारण उसके खिलाफ तीखी टिप्पणियां की थीं। न्यायालय ने कहा था कि इस तरह के आर्थिक अपराधों से सख्ती से निबटना चाहिए।
न्यायालय ने कहा था कि यदि सहारा इंडिया रियल इस्टेट कार्पोरेशन और सहारा हाउसिंग इंवेस्टमेन्ट कार्पोरेशन निवेशकों का धन लौटाने में विफल रही है तो सेबी उसकी संपत्तियों को कुर्क करने के साथ ही बैंक खाते भी जब्त कर सकती है।टिप्पणियां
न्यायालय ने सेबी की कार्रवाई की निगरानी के लिए शीर्ष अदालत के सेवानिवृत्त न्यायाधीश बीएन अग्रवाल को नियुक्त किया था।
सहारा इंडिया रियल इस्टेट कापरेरेशन ने 8 मार्च 2008 तक 19,400.87 करोड़ और सहारा हाउसिंग इंवेस्टमेन्ट कापरेरेशन 6380.50 करोड़ रुपए जुटाए थे लेकिन 31 अगस्त तक इस मद में 24,029.73 करोड़ रुपये कुल राशि थी। सहारा समूह को अब 24,029.73 करोड़ मूल धन और करीब 14 हजार करोड़ रुपये के ब्याज की रकम के साथ करीब 38 हजार करोड़ रुपये का भुगतान करना पड़ सकता है।
न्यायमूर्ति केएस राधाकृष्णन और न्यायमूर्ति जेएस खेहड़ की खंडपीठ ने सहारा समूह की ओर से दायर पुनर्विचार याचिका पर बुधवार को चैंबर में विचार करने के बाद उसे खारिज कर दिया। इसी पीठ ने गत 31 अगस्त को सहारा समूह को निवेशकों का धन वापस करने का आदेश दिया था।
न्यायाधीशों ने अपने आदेश में कहा, ‘‘हमारे सामने पेश सारे रिकॉर्ड पर सावधानी से गौर किया गया है। इन पुनर्विचार याचिकाओं पर विचार नहीं किया जा रहा है और इसलिए इन्हें खारिज किया जा रहा है।’’ न्यायालय ने कहा कि कंपनियों द्वारा पेश सभी दलीलों पर पहले फैसले के समय ही विचार किया जा चुका था। इन पर फिर से गौर करने की कोई आवश्यकता नहीं है।
न्यायाधीशों ने कहा, ‘‘इस मामले में हम दोनों द्वारा व्यक्त राय में किसी प्रकार का विचलन नहीं है। इसके विपरीत, आवेदक द्वारा कानूनी और तथ्यात्मक रुप से प्रस्तुत सभी दलीलों पर हर संभव पहलू और दृष्टिकोण से गौर किया गया, और उनका निस्तारण किया गया और जवाब दिया गया।’’ सहारा की पुनर्विचार याचिका खारिज किया जाना इसलिए महत्वपूर्ण हो गया है क्योंकि इन कंपनियों ने निवेशकों का पैसा लौटाने के लिए और समय दिए जाने की एक नई अर्जी भी पेश कर रखी है।
न्यायमूर्ति राधाकृष्णन और न्यायमूर्ति खेहड की खंडपीठ ने 31 अगस्त को फैसला सुनाया था लेकिन 5 दिसंबर को प्रधान न्यायाधीश अल्तमस कबीर की अध्यक्षता वाली पीठ ने इस फैसले में सुधार करते हुए सहारा समूह की कंपनियों को निवेशकों का धन लौटाने के लिए नौ सप्ताह का और समय दे दिया था।
न्यायमूर्ति कबीर की अध्यक्षता वाली पीठ ने सेबी और निवेशकों के संगठन के विरोध के बावजूद सहारा समूह को यह मोहलत दे दी थी।
सेबी ने इसका विरोध करते हुए कहा था कि किसी अन्य पीठ के निर्णय में इस तरह से सुधार करना उचित नहीं है और सहारा समूह की अर्जी पर न्यायमूर्ति राधाकृष्णन और न्यायमूर्ति खेहड़ की पीठ को ही विचार करना चाहिए।
सहारा समूह ने मंगलवार को भी प्रधान न्यायाधीश के समक्ष इस मामले का उल्लेख किया था।
न्यायमूर्ति राधाकृष्णन और न्यायमूर्ति खेहड़ की खंडपीठ ने 31 अगस्त के निर्णय में सहारा समूह की इन कंपनियों द्वारा निवेशकों से धन जुटाने के लिए नियम कानूनों का उल्लंघन करने के कारण उसके खिलाफ तीखी टिप्पणियां की थीं। न्यायालय ने कहा था कि इस तरह के आर्थिक अपराधों से सख्ती से निबटना चाहिए।
न्यायालय ने कहा था कि यदि सहारा इंडिया रियल इस्टेट कार्पोरेशन और सहारा हाउसिंग इंवेस्टमेन्ट कार्पोरेशन निवेशकों का धन लौटाने में विफल रही है तो सेबी उसकी संपत्तियों को कुर्क करने के साथ ही बैंक खाते भी जब्त कर सकती है।टिप्पणियां
न्यायालय ने सेबी की कार्रवाई की निगरानी के लिए शीर्ष अदालत के सेवानिवृत्त न्यायाधीश बीएन अग्रवाल को नियुक्त किया था।
सहारा इंडिया रियल इस्टेट कापरेरेशन ने 8 मार्च 2008 तक 19,400.87 करोड़ और सहारा हाउसिंग इंवेस्टमेन्ट कापरेरेशन 6380.50 करोड़ रुपए जुटाए थे लेकिन 31 अगस्त तक इस मद में 24,029.73 करोड़ रुपये कुल राशि थी। सहारा समूह को अब 24,029.73 करोड़ मूल धन और करीब 14 हजार करोड़ रुपये के ब्याज की रकम के साथ करीब 38 हजार करोड़ रुपये का भुगतान करना पड़ सकता है।
न्यायाधीशों ने अपने आदेश में कहा, ‘‘हमारे सामने पेश सारे रिकॉर्ड पर सावधानी से गौर किया गया है। इन पुनर्विचार याचिकाओं पर विचार नहीं किया जा रहा है और इसलिए इन्हें खारिज किया जा रहा है।’’ न्यायालय ने कहा कि कंपनियों द्वारा पेश सभी दलीलों पर पहले फैसले के समय ही विचार किया जा चुका था। इन पर फिर से गौर करने की कोई आवश्यकता नहीं है।
न्यायाधीशों ने कहा, ‘‘इस मामले में हम दोनों द्वारा व्यक्त राय में किसी प्रकार का विचलन नहीं है। इसके विपरीत, आवेदक द्वारा कानूनी और तथ्यात्मक रुप से प्रस्तुत सभी दलीलों पर हर संभव पहलू और दृष्टिकोण से गौर किया गया, और उनका निस्तारण किया गया और जवाब दिया गया।’’ सहारा की पुनर्विचार याचिका खारिज किया जाना इसलिए महत्वपूर्ण हो गया है क्योंकि इन कंपनियों ने निवेशकों का पैसा लौटाने के लिए और समय दिए जाने की एक नई अर्जी भी पेश कर रखी है।
न्यायमूर्ति राधाकृष्णन और न्यायमूर्ति खेहड की खंडपीठ ने 31 अगस्त को फैसला सुनाया था लेकिन 5 दिसंबर को प्रधान न्यायाधीश अल्तमस कबीर की अध्यक्षता वाली पीठ ने इस फैसले में सुधार करते हुए सहारा समूह की कंपनियों को निवेशकों का धन लौटाने के लिए नौ सप्ताह का और समय दे दिया था।
न्यायमूर्ति कबीर की अध्यक्षता वाली पीठ ने सेबी और निवेशकों के संगठन के विरोध के बावजूद सहारा समूह को यह मोहलत दे दी थी।
सेबी ने इसका विरोध करते हुए कहा था कि किसी अन्य पीठ के निर्णय में इस तरह से सुधार करना उचित नहीं है और सहारा समूह की अर्जी पर न्यायमूर्ति राधाकृष्णन और न्यायमूर्ति खेहड़ की पीठ को ही विचार करना चाहिए।
सहारा समूह ने मंगलवार को भी प्रधान न्यायाधीश के समक्ष इस मामले का उल्लेख किया था।
न्यायमूर्ति राधाकृष्णन और न्यायमूर्ति खेहड़ की खंडपीठ ने 31 अगस्त के निर्णय में सहारा समूह की इन कंपनियों द्वारा निवेशकों से धन जुटाने के लिए नियम कानूनों का उल्लंघन करने के कारण उसके खिलाफ तीखी टिप्पणियां की थीं। न्यायालय ने कहा था कि इस तरह के आर्थिक अपराधों से सख्ती से निबटना चाहिए।
न्यायालय ने कहा था कि यदि सहारा इंडिया रियल इस्टेट कार्पोरेशन और सहारा हाउसिंग इंवेस्टमेन्ट कार्पोरेशन निवेशकों का धन लौटाने में विफल रही है तो सेबी उसकी संपत्तियों को कुर्क करने के साथ ही बैंक खाते भी जब्त कर सकती है।टिप्पणियां
न्यायालय ने सेबी की कार्रवाई की निगरानी के लिए शीर्ष अदालत के सेवानिवृत्त न्यायाधीश बीएन अग्रवाल को नियुक्त किया था।
सहारा इंडिया रियल इस्टेट कापरेरेशन ने 8 मार्च 2008 तक 19,400.87 करोड़ और सहारा हाउसिंग इंवेस्टमेन्ट कापरेरेशन 6380.50 करोड़ रुपए जुटाए थे लेकिन 31 अगस्त तक इस मद में 24,029.73 करोड़ रुपये कुल राशि थी। सहारा समूह को अब 24,029.73 करोड़ मूल धन और करीब 14 हजार करोड़ रुपये के ब्याज की रकम के साथ करीब 38 हजार करोड़ रुपये का भुगतान करना पड़ सकता है।
न्यायमूर्ति राधाकृष्णन और न्यायमूर्ति खेहड की खंडपीठ ने 31 अगस्त को फैसला सुनाया था लेकिन 5 दिसंबर को प्रधान न्यायाधीश अल्तमस कबीर की अध्यक्षता वाली पीठ ने इस फैसले में सुधार करते हुए सहारा समूह की कंपनियों को निवेशकों का धन लौटाने के लिए नौ सप्ताह का और समय दे दिया था।
न्यायमूर्ति कबीर की अध्यक्षता वाली पीठ ने सेबी और निवेशकों के संगठन के विरोध के बावजूद सहारा समूह को यह मोहलत दे दी थी।
सेबी ने इसका विरोध करते हुए कहा था कि किसी अन्य पीठ के निर्णय में इस तरह से सुधार करना उचित नहीं है और सहारा समूह की अर्जी पर न्यायमूर्ति राधाकृष्णन और न्यायमूर्ति खेहड़ की पीठ को ही विचार करना चाहिए।
सहारा समूह ने मंगलवार को भी प्रधान न्यायाधीश के समक्ष इस मामले का उल्लेख किया था।
न्यायमूर्ति राधाकृष्णन और न्यायमूर्ति खेहड़ की खंडपीठ ने 31 अगस्त के निर्णय में सहारा समूह की इन कंपनियों द्वारा निवेशकों से धन जुटाने के लिए नियम कानूनों का उल्लंघन करने के कारण उसके खिलाफ तीखी टिप्पणियां की थीं। न्यायालय ने कहा था कि इस तरह के आर्थिक अपराधों से सख्ती से निबटना चाहिए।
न्यायालय ने कहा था कि यदि सहारा इंडिया रियल इस्टेट कार्पोरेशन और सहारा हाउसिंग इंवेस्टमेन्ट कार्पोरेशन निवेशकों का धन लौटाने में विफल रही है तो सेबी उसकी संपत्तियों को कुर्क करने के साथ ही बैंक खाते भी जब्त कर सकती है।टिप्पणियां
न्यायालय ने सेबी की कार्रवाई की निगरानी के लिए शीर्ष अदालत के सेवानिवृत्त न्यायाधीश बीएन अग्रवाल को नियुक्त किया था।
सहारा इंडिया रियल इस्टेट कापरेरेशन ने 8 मार्च 2008 तक 19,400.87 करोड़ और सहारा हाउसिंग इंवेस्टमेन्ट कापरेरेशन 6380.50 करोड़ रुपए जुटाए थे लेकिन 31 अगस्त तक इस मद में 24,029.73 करोड़ रुपये कुल राशि थी। सहारा समूह को अब 24,029.73 करोड़ मूल धन और करीब 14 हजार करोड़ रुपये के ब्याज की रकम के साथ करीब 38 हजार करोड़ रुपये का भुगतान करना पड़ सकता है।
न्यायमूर्ति कबीर की अध्यक्षता वाली पीठ ने सेबी और निवेशकों के संगठन के विरोध के बावजूद सहारा समूह को यह मोहलत दे दी थी।
सेबी ने इसका विरोध करते हुए कहा था कि किसी अन्य पीठ के निर्णय में इस तरह से सुधार करना उचित नहीं है और सहारा समूह की अर्जी पर न्यायमूर्ति राधाकृष्णन और न्यायमूर्ति खेहड़ की पीठ को ही विचार करना चाहिए।
सहारा समूह ने मंगलवार को भी प्रधान न्यायाधीश के समक्ष इस मामले का उल्लेख किया था।
न्यायमूर्ति राधाकृष्णन और न्यायमूर्ति खेहड़ की खंडपीठ ने 31 अगस्त के निर्णय में सहारा समूह की इन कंपनियों द्वारा निवेशकों से धन जुटाने के लिए नियम कानूनों का उल्लंघन करने के कारण उसके खिलाफ तीखी टिप्पणियां की थीं। न्यायालय ने कहा था कि इस तरह के आर्थिक अपराधों से सख्ती से निबटना चाहिए।
न्यायालय ने कहा था कि यदि सहारा इंडिया रियल इस्टेट कार्पोरेशन और सहारा हाउसिंग इंवेस्टमेन्ट कार्पोरेशन निवेशकों का धन लौटाने में विफल रही है तो सेबी उसकी संपत्तियों को कुर्क करने के साथ ही बैंक खाते भी जब्त कर सकती है।टिप्पणियां
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सहारा इंडिया रियल इस्टेट कापरेरेशन ने 8 मार्च 2008 तक 19,400.87 करोड़ और सहारा हाउसिंग इंवेस्टमेन्ट कापरेरेशन 6380.50 करोड़ रुपए जुटाए थे लेकिन 31 अगस्त तक इस मद में 24,029.73 करोड़ रुपये कुल राशि थी। सहारा समूह को अब 24,029.73 करोड़ मूल धन और करीब 14 हजार करोड़ रुपये के ब्याज की रकम के साथ करीब 38 हजार करोड़ रुपये का भुगतान करना पड़ सकता है।
सेबी ने इसका विरोध करते हुए कहा था कि किसी अन्य पीठ के निर्णय में इस तरह से सुधार करना उचित नहीं है और सहारा समूह की अर्जी पर न्यायमूर्ति राधाकृष्णन और न्यायमूर्ति खेहड़ की पीठ को ही विचार करना चाहिए।
सहारा समूह ने मंगलवार को भी प्रधान न्यायाधीश के समक्ष इस मामले का उल्लेख किया था।
न्यायमूर्ति राधाकृष्णन और न्यायमूर्ति खेहड़ की खंडपीठ ने 31 अगस्त के निर्णय में सहारा समूह की इन कंपनियों द्वारा निवेशकों से धन जुटाने के लिए नियम कानूनों का उल्लंघन करने के कारण उसके खिलाफ तीखी टिप्पणियां की थीं। न्यायालय ने कहा था कि इस तरह के आर्थिक अपराधों से सख्ती से निबटना चाहिए।
न्यायालय ने कहा था कि यदि सहारा इंडिया रियल इस्टेट कार्पोरेशन और सहारा हाउसिंग इंवेस्टमेन्ट कार्पोरेशन निवेशकों का धन लौटाने में विफल रही है तो सेबी उसकी संपत्तियों को कुर्क करने के साथ ही बैंक खाते भी जब्त कर सकती है।टिप्पणियां
न्यायालय ने सेबी की कार्रवाई की निगरानी के लिए शीर्ष अदालत के सेवानिवृत्त न्यायाधीश बीएन अग्रवाल को नियुक्त किया था।
सहारा इंडिया रियल इस्टेट कापरेरेशन ने 8 मार्च 2008 तक 19,400.87 करोड़ और सहारा हाउसिंग इंवेस्टमेन्ट कापरेरेशन 6380.50 करोड़ रुपए जुटाए थे लेकिन 31 अगस्त तक इस मद में 24,029.73 करोड़ रुपये कुल राशि थी। सहारा समूह को अब 24,029.73 करोड़ मूल धन और करीब 14 हजार करोड़ रुपये के ब्याज की रकम के साथ करीब 38 हजार करोड़ रुपये का भुगतान करना पड़ सकता है।
सहारा समूह ने मंगलवार को भी प्रधान न्यायाधीश के समक्ष इस मामले का उल्लेख किया था।
न्यायमूर्ति राधाकृष्णन और न्यायमूर्ति खेहड़ की खंडपीठ ने 31 अगस्त के निर्णय में सहारा समूह की इन कंपनियों द्वारा निवेशकों से धन जुटाने के लिए नियम कानूनों का उल्लंघन करने के कारण उसके खिलाफ तीखी टिप्पणियां की थीं। न्यायालय ने कहा था कि इस तरह के आर्थिक अपराधों से सख्ती से निबटना चाहिए।
न्यायालय ने कहा था कि यदि सहारा इंडिया रियल इस्टेट कार्पोरेशन और सहारा हाउसिंग इंवेस्टमेन्ट कार्पोरेशन निवेशकों का धन लौटाने में विफल रही है तो सेबी उसकी संपत्तियों को कुर्क करने के साथ ही बैंक खाते भी जब्त कर सकती है।टिप्पणियां
न्यायालय ने सेबी की कार्रवाई की निगरानी के लिए शीर्ष अदालत के सेवानिवृत्त न्यायाधीश बीएन अग्रवाल को नियुक्त किया था।
सहारा इंडिया रियल इस्टेट कापरेरेशन ने 8 मार्च 2008 तक 19,400.87 करोड़ और सहारा हाउसिंग इंवेस्टमेन्ट कापरेरेशन 6380.50 करोड़ रुपए जुटाए थे लेकिन 31 अगस्त तक इस मद में 24,029.73 करोड़ रुपये कुल राशि थी। सहारा समूह को अब 24,029.73 करोड़ मूल धन और करीब 14 हजार करोड़ रुपये के ब्याज की रकम के साथ करीब 38 हजार करोड़ रुपये का भुगतान करना पड़ सकता है।
न्यायमूर्ति राधाकृष्णन और न्यायमूर्ति खेहड़ की खंडपीठ ने 31 अगस्त के निर्णय में सहारा समूह की इन कंपनियों द्वारा निवेशकों से धन जुटाने के लिए नियम कानूनों का उल्लंघन करने के कारण उसके खिलाफ तीखी टिप्पणियां की थीं। न्यायालय ने कहा था कि इस तरह के आर्थिक अपराधों से सख्ती से निबटना चाहिए।
न्यायालय ने कहा था कि यदि सहारा इंडिया रियल इस्टेट कार्पोरेशन और सहारा हाउसिंग इंवेस्टमेन्ट कार्पोरेशन निवेशकों का धन लौटाने में विफल रही है तो सेबी उसकी संपत्तियों को कुर्क करने के साथ ही बैंक खाते भी जब्त कर सकती है।टिप्पणियां
न्यायालय ने सेबी की कार्रवाई की निगरानी के लिए शीर्ष अदालत के सेवानिवृत्त न्यायाधीश बीएन अग्रवाल को नियुक्त किया था।
सहारा इंडिया रियल इस्टेट कापरेरेशन ने 8 मार्च 2008 तक 19,400.87 करोड़ और सहारा हाउसिंग इंवेस्टमेन्ट कापरेरेशन 6380.50 करोड़ रुपए जुटाए थे लेकिन 31 अगस्त तक इस मद में 24,029.73 करोड़ रुपये कुल राशि थी। सहारा समूह को अब 24,029.73 करोड़ मूल धन और करीब 14 हजार करोड़ रुपये के ब्याज की रकम के साथ करीब 38 हजार करोड़ रुपये का भुगतान करना पड़ सकता है।
न्यायालय ने कहा था कि यदि सहारा इंडिया रियल इस्टेट कार्पोरेशन और सहारा हाउसिंग इंवेस्टमेन्ट कार्पोरेशन निवेशकों का धन लौटाने में विफल रही है तो सेबी उसकी संपत्तियों को कुर्क करने के साथ ही बैंक खाते भी जब्त कर सकती है।टिप्पणियां
न्यायालय ने सेबी की कार्रवाई की निगरानी के लिए शीर्ष अदालत के सेवानिवृत्त न्यायाधीश बीएन अग्रवाल को नियुक्त किया था।
सहारा इंडिया रियल इस्टेट कापरेरेशन ने 8 मार्च 2008 तक 19,400.87 करोड़ और सहारा हाउसिंग इंवेस्टमेन्ट कापरेरेशन 6380.50 करोड़ रुपए जुटाए थे लेकिन 31 अगस्त तक इस मद में 24,029.73 करोड़ रुपये कुल राशि थी। सहारा समूह को अब 24,029.73 करोड़ मूल धन और करीब 14 हजार करोड़ रुपये के ब्याज की रकम के साथ करीब 38 हजार करोड़ रुपये का भुगतान करना पड़ सकता है।
न्यायालय ने सेबी की कार्रवाई की निगरानी के लिए शीर्ष अदालत के सेवानिवृत्त न्यायाधीश बीएन अग्रवाल को नियुक्त किया था।
सहारा इंडिया रियल इस्टेट कापरेरेशन ने 8 मार्च 2008 तक 19,400.87 करोड़ और सहारा हाउसिंग इंवेस्टमेन्ट कापरेरेशन 6380.50 करोड़ रुपए जुटाए थे लेकिन 31 अगस्त तक इस मद में 24,029.73 करोड़ रुपये कुल राशि थी। सहारा समूह को अब 24,029.73 करोड़ मूल धन और करीब 14 हजार करोड़ रुपये के ब्याज की रकम के साथ करीब 38 हजार करोड़ रुपये का भुगतान करना पड़ सकता है।
सहारा इंडिया रियल इस्टेट कापरेरेशन ने 8 मार्च 2008 तक 19,400.87 करोड़ और सहारा हाउसिंग इंवेस्टमेन्ट कापरेरेशन 6380.50 करोड़ रुपए जुटाए थे लेकिन 31 अगस्त तक इस मद में 24,029.73 करोड़ रुपये कुल राशि थी। सहारा समूह को अब 24,029.73 करोड़ मूल धन और करीब 14 हजार करोड़ रुपये के ब्याज की रकम के साथ करीब 38 हजार करोड़ रुपये का भुगतान करना पड़ सकता है।
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मुंबई के उपनगर ट्राम्बे स्थित भाभा एटॉमिक रिसर्च सेंटर (बार्क) की एक रसायन प्रयोगशाला में आज आग भड़क उठी जिसमें दो लोगों को अपनी जान से हाथ धोना पड़ा लेकिन रेडियोएक्टिव रिसाव का कोई खतरा नहीं है.
बार्क सूत्रों के मुताबिक मृतकों की पहचान अभी नहीं हो पाई है और उन्हें पहचानने की कोशिश की जा रही है. संदेह जताया जा रहा है कि मृतक व्यक्ति छात्र हो सकते हैं. परमाणु ऊर्जा आयोग के अध्यक्ष और बार्क निदेशक श्रीकुमार बनर्जी ने बताया कि बार्क इमारत की तीसरी मंजिल पर स्थित मॉड्यूलर लैब की रसायन प्रयोगशाला में आग लगी. दमकल और पुलिस विभाग का कहना है कि आग लगने की वजह का अभी तक पता नहीं लग पाया है.
आग आज दोपहर भड़की और दमकल गाड़ियों ने 45 मिनट के भीतर उसपर काबू पा लिया. प्रयोगशाला में आमतौर पर सात लोग काम करते हैं लेकिन आज वहां केवल दो व्यक्ति मौजूद थे. बार्क स्थित मॉड्यूलर लैब में विभाग की कई प्रयोगशालाएं हैं और इमारत की विभिन्न मंजिलों पर सैकड़ों लोग काम करते हैं.
अनुसंधान के लिए जरूरी उपकरण, रसायन और साजो-सामान का इन प्रयोगशालाओं में भंडारण किया जाता है. देश के प्रतिष्ठित परमाणु संयंत्रों पर आतंकवादी हमलों की खुफिया सूचनाओं के मद्देनजर बार्क में सुरक्षा व्यवस्था बढ़ाई गई है.
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यह लेख है: नवाजुद्दीन सिद्दीकी (Nawazuddin Siddiqui) की फिल्म 'ठाकरे' (Thackeray) ने दूसरे दिन 10 करोड़ की कमाई की थी. इसको देखकर कहा जा रहा है कि रविवार को भी फिल्म 'ठाकरे' (Thackeray) ने करीब 9-10 करोड़ के बीच कमाई की है. शिवसेना पार्टी के संस्थापक बालासाहेब ठाकरे (BalaSaheb Thackeray) के जीवन पर आधारित बायोपिक फिल्म को हिंदी के अलावा मराठी व अंग्रेजी भाषा में भी रिलीज किया गया है. बालासाहेब ठाकरे के किरदार में नवाजुद्दीन सिद्दीकी (Nawazuddin Siddiqui) की खासियत है उनकी जबरदस्त एक्टिंग और वह अपनी इस कला से हर किसी को मोह लेते हैं.
फिल्म 'ठाकरे' (Thackeray) में नवाजुद्दीन बालासाहेब ठाकरे (Balasaheb Thackeray) के किरदार में नजर आ रहे हैं. फिल्म के लिए उनका लुक देखकर लोग बिल्कुल हैरान रह गए थे. फिल्म के ट्रेलर में नवाजुद्दीन (Nawazuddin) हूबहू ठाकरे की तरह नजर आ रहे हैं. उनके इस लुक के लिए प्रोस्थेटिक मेकअप का इस्तेमाल किया गया है जिसे साकार रूप आर्टिस्ट प्रीति शील सिंह ने दिया.
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यह एक लेख है: जमानत पर रिहा भारतीय तेज गेंदबाज एस श्रीसंत ने स्पॉट फिक्सिंग स्कैंडल में फंसने के बाद पहली बार ट्रेनिंग शुरू की और जल्द ही मैदान में वापसी की उम्मीद जताई।
श्रीसंत ने ट्वीट किया, ‘ट्रेनिंग शुरू कर दी है। पहला दिन था। धीरे-धीरे सामान्य जिदंगी में वापसी कर रहा हूं। आप सभी के समर्थन का शुक्रिया।’ उन्होंने लिखा, ‘कड़ी मेहनत जारी रखूंगा और इंतजार करूंगा। धैर्य रखूंगा। उम्मीद है कि जल्द ही मैदान पर वापसी करूंगा। जय माता दी।’टिप्पणियां
श्रीसंत को राजस्थान रॉयल्स के दो साथी खिलाड़ियों अजीत चंदीला और अंकित चव्हाण के साथ दिल्ली पुलिस ने कथित रूप से आईपीएल छह में स्पॉट फिक्सिंग में शामिल होने के लिए गिरफ्तार किया था।
श्रीसंत ने 27 दिन तिहाड़ जेल में बिताए और 11 जून को उन्हें जमानत मिली थी।
श्रीसंत ने ट्वीट किया, ‘ट्रेनिंग शुरू कर दी है। पहला दिन था। धीरे-धीरे सामान्य जिदंगी में वापसी कर रहा हूं। आप सभी के समर्थन का शुक्रिया।’ उन्होंने लिखा, ‘कड़ी मेहनत जारी रखूंगा और इंतजार करूंगा। धैर्य रखूंगा। उम्मीद है कि जल्द ही मैदान पर वापसी करूंगा। जय माता दी।’टिप्पणियां
श्रीसंत को राजस्थान रॉयल्स के दो साथी खिलाड़ियों अजीत चंदीला और अंकित चव्हाण के साथ दिल्ली पुलिस ने कथित रूप से आईपीएल छह में स्पॉट फिक्सिंग में शामिल होने के लिए गिरफ्तार किया था।
श्रीसंत ने 27 दिन तिहाड़ जेल में बिताए और 11 जून को उन्हें जमानत मिली थी।
श्रीसंत को राजस्थान रॉयल्स के दो साथी खिलाड़ियों अजीत चंदीला और अंकित चव्हाण के साथ दिल्ली पुलिस ने कथित रूप से आईपीएल छह में स्पॉट फिक्सिंग में शामिल होने के लिए गिरफ्तार किया था।
श्रीसंत ने 27 दिन तिहाड़ जेल में बिताए और 11 जून को उन्हें जमानत मिली थी।
श्रीसंत ने 27 दिन तिहाड़ जेल में बिताए और 11 जून को उन्हें जमानत मिली थी।
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संजय लीला भंसाली की फिल्म पद्मावती विवाद में एक नया मोड़ आया है. फिल्म के मेकर्स विरोधियों के लिए फिल्म की स्क्रीनिंग करने को तैयार हो गए हैं. उनका कहना है कि सेंसर बोर्ड से पास होने के बाद विरोधियों को फिल्म दिखाएंगे.
रिपोर्ट के अनुसार, वायकॉम 18 मोशन पिक्चर्स के चीफ ऑपरेटिंग ऑफिसर अजीत आंध्रे ने सोमवार को कहा कि फिल्म में इतिहास से छेड़छाड़ होने की खबर गलत है. हमें सेंसर से फिल्म पास होने के बाद इसकी स्क्रीनिंग कराने में कोई दिक्कत नहीं है. हम चाहेंगे कि विरोधियों का संदेह खत्म हो. खिलजी और पद्मावती के ड्रीम सीक्वेंस की खबर बेबुनियाद है. ऐसा कुछ नहीं है. उन्होंने कहा, CBFC को पिछले हफ्ते फिल्म सौंप चुके हैं.
पद्मावती पर बोले सलमान- भंसाली की फिल्म में कभी कुछ गलत नहीं होता
वहीं फिल्म के खिलाफ हो रहे प्रदर्शन पर शाहिद कपूर ने कहा, कोई भी विचार रखने से जरूरी है पहले फिल्म को देखना. विरोधी पहले फिल्म देखें फिर अपनी प्रतिक्रिया दें. हमने सभी की भावनाओं और हितों को ध्यान में रखते हुए फिल्म बनाई है. हम सभी की भावनाओं का सम्मान करते हैं.
पद्मावती विवाद में बॉलीवुड भी भंसाली को सपोर्ट कर रहा है. सलमान खान ने कहा कि भंसाली की फिल्म में कभी कुछ गलत नहीं होता. वे अच्छी फिल्में बनाते हैं. वहीं डायरेक्टर्स एसोसिएशन सहित 5 फिल्म संगठन ने मिलकर गृह मंत्री राजनाथ सिंह से फिल्म रिलीज के मामले में दखल की अपील की है. डायरेक्टर्स एसोसिएशन ने फिल्म को लेकर हो रहे विरोध के खिलाफ 16 नवंबर को शांतिपूर्ण तरीके से प्रदर्शन करने का फैसला लिया है. इस दौरान मुंबई में शाम 4 बजे से 4:15 के बीच कहीं भी शूटिंग नहीं होगी.
Lets stand together for Padmavati and
@SLBhansali_
#WeSupportPadmavati
#IFTDAprotests
pic.twitter.com/20sC8ZnVNR
— Iftda India (@DirectorsIFTDA)
November 13, 2017
खिलजी नहीं था पद्मावती का दीवाना, कहा मेरे पास हैं 1600 खूबसूरत पत्नियां
डायरेक्टर्स एसोसिएशन से जुड़े अशोक पंडित ने कहा, ये विरोध का हमारा तरीका है. पांच संगठन ने मिलकर भंसाली के पक्ष में अभिव्यक्ति की आजादी के लिए अपील की है. हम इस बात से दुखी है कि हमें आरोपी बनाया गया और दुव्यर्वहार किया गया. हमेशा से निर्देशकों को परेशान किया जाता रहा है. लेकिन आज हम सब साथ हैं. अब फैसला लेना जरूरी हो गया है. जो भंसाली के साथ हो रहा है, उससे पूरी इंडस्ट्री निशाने पर आ गई है.
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दक्षिण-पश्चिम चीन में एक कोयला खदान में हुए धमाके में सात लोगों की मौत हो गई और दो अन्य लोग हो गए। स्थानीय अधिकारियों ने बताया कि यह धमाका चीन के गुइझो प्रांत में जिन्शा कॉउंटी में स्थित शिबान्पो कोयला खदान में हुआ है।
धमाके के समय खदान के भीतर 31 कर्मचारी काम कर रहे थे। सरकारी समाचार एजेंसी 'शिन्हुआ' के मुताबिक, शुरुआती जांच से पता चला है कि खदान के एक बंद शाफ्ट को बिना इजाजत के खोला गया था और इसी कारण वहां यह धमाका हुआ।
धमाके के समय खदान के भीतर 31 कर्मचारी काम कर रहे थे। सरकारी समाचार एजेंसी 'शिन्हुआ' के मुताबिक, शुरुआती जांच से पता चला है कि खदान के एक बंद शाफ्ट को बिना इजाजत के खोला गया था और इसी कारण वहां यह धमाका हुआ।
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लुका छिपी फेम एक्टर कार्तिक आर्यन ने अपनी आनी वाली फिल्म 'पति पत्नी और वो' की शूटिंग शुरू कर दी है. इस बीच कार्तिक ने फिल्म में अपने लुक की एक झलक सोशल मीडिया पर शेयर की है. तस्वीर में कार्तिक आर्यन का सीधा सादा लुक आपको 'रब ने बना दी जोड़ी' के शाहरुख खान की याद दिला सकता है.
फिल्म में चिंटू त्यागी का किरदार निभा रहे कार्तिक आर्यन ने इंस्टाग्राम पर इस तस्वीर को शेयर करते हुए एक इमोशनल नोट भी लिखा है. कार्तिक ने लिखा, "एक किरदार को, उसकी दुनिया को पीछे छोड़ना...और एक नए किरदार में ढलना तकलीफदेह है. लेकिन मजेदार प्रक्रिया है. एक अभिनेता होने के नाते आपको एक ही जिंदगी में बहुत सारी जिंदगी जीने को मिला है."
कार्तिक ने पहले भी इस किरदार की विशेषता बताई है. उन्होंने कहा था कि इस फिल्म में उनका रोल एक समर्पित और आशिक मिजाज पति का है.
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#ChintuTyagi 😎 . . Leaving behind one character... his world and getting into another character is painful yet a fun process. Perk of being an actor. You get to live so many lives in one life. #PatiPatniAurWoh ❤️🤫
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Jul 14, 2019 at 10:26pm PDT
मुदस्सर अजीज के निर्देशन में बन रही यह फिल्म 1978 में आई बीआर चोपड़ा की फिल्म 'पति पत्नी और वो' का रीमेक है. फिल्म में कार्तिक आर्यन के अलावा अनन्या पांडे और भूमि पेडनेकर मुख्य भूमिका में हैं. भूमि कार्तिक की पत्नी और अनन्या सेक्रेटरी के रोल में हैं.
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Patni Ya Woh ? 🤫 #PatiPatniAurWoh 🎥 Super excited to work with @bhumipednekar @ananyapanday ! पति की बजेगी बैंड पत्नी और वो के बीच 🤣😂 Madness is about to begin ❤️🤯 @mudassar_as_is @junochopra #BhushanKumar @tseries.official @brstudiosllp @renurchopra @abhayrchopra_
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Jan 18, 2019 at 7:55pm PST
कार्तिक आर्यन इम्तियाज अली की फिल्म 'आज कल' में भी नजर आने वाले हैं. इसमें उनके साथ सारा अली खान काम कर रही हैं. पिछले दिनों दोनों की तस्वीरें सोशल मीडिया पर सुर्खियों में थी. यहां तक कि दोनों के अफेयर की चर्चा भी हो रही थी.
खैर, कार्तिक के करियर की बात करें तो इस वक्त वे अपने करियर के पीक पर हैं. उनकी पिछली फिल्म लुका छिपी ने बॉक्स ऑफिस पर अच्छा परफॉर्म किया था. उन्होंने हाल ही में मुंबई में अपना खुद का घर भी खरीदा है.
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हम जब पढ़-लिख कर ऐसा सोच रहे होते हैं कि हम सब-कुछ जान गए हैं. ठीक वैसे ही समय में दुनिया और प्रकृति हमारे समक्ष कुछ ऐसे उदाहरण प्रस्तुत करते हैं जिन पर विश्वास करना नामुमकिन तो नहीं मगर मुश्किल जरूर लगता है.
यहां मौजूद हैं देश-दुनिया के ऐसे 20 रहस्यमयी तथ्य जो वाकई सच हैं...
1. एक मुर्गा जो बिना सिर के 18 माह तक दर-बदर भटकता रहा.
जी हां, ये बात सच है. इस मुर्गे का नाम माइक था और माइक के मालिक ने उसे काटने के वक्त थोड़ी लापरवाही बरती. इस लापरवाही की वजह से माइक 18 माह तक इधर-उधर भटकता रहा और
देश-दुनिया
की सुर्खियों में रहा.
2. साल 1932 में एमू पक्षी और ऑस्ट्रेलियाई आर्मी में भिड़ंत हो गई थी.
हो सकता है कि यह बात आपको सुनने में अजीब लग रही हो, मगर एमू जैसे बड़े पक्षी अपनी पर आ जाएं तो वे फसलों को खासा नुकसान पहुंचाते हैं. इसी से निपटने के लिए ऑस्ट्रेलिया को आर्मी की मदद लेनी पड़ी थी, हालांकि इसमें एमू ही जीते थे.
3. जासूसी के शक पर इरान ने 14 गिलहरियों को कैद किया.
इस ख़बर ने साल 2007 में खासी सुर्खियां बटोरीं. जब इरान की सुरक्षा व्यवस्था संभालने वाली एजेंसियों ने 14 गिलहरियों को गिरफ्त में ले लिया. इन गिलहरियों पर उन्हें शक था कि वे विदेशी एजेंसियों के इशारे पर खुफिया मिशन में लगी हैं.
4. शीशे और रबर की गेंद को साथ गिराने पर शीशे की गेंद का उछाल ज्यादा होगा.
अब इस बात में एक शर्त यह है कि शीशे की गेंद न टूटे.
5. फिनलैंड से
उत्तरी कोरिया
जाने में सिर्फ रूस बीच में आता है.
तो भैया बात ऐसी है कि रूस क्षेत्रफल के मामले में ही इतना विस्तृत है कि उसके भीतर कई देश समा जाएंगे.
6. माचिस से पहले लाइटर का आविष्कार हो चुका था.
हमारा लाइटर ऐसे ही फाइटर थोड़े न कहा जाता है, आख़िर उम्र का मामला है.
7. नील आर्म स्ट्रॉन्ग को चंद्रमा से लौटने पर कस्टम और इमिग्रेशन का सामना करना पड़ा था.
जब नील आर्म स्ट्रॉन्ग को कोई छूट नहीं मिली तो हमारी क्या बिसात है. आखिर आसमान से लौटने का मामला जो ठहरा.
8. Match.com के संस्थापक गैरी क्रेमेन अपनी गर्लफ्रेंड Match.com पर ही गंवा बैठे.
तो भैया इसीलिए कहते हैं कि टेक्नोलॉजी किसी की सगी नहीं होती.
9. सउदी अरब, ऑस्ट्रेलिया से ऊंट आयात करता है.
हम सभी तो हमेशा से ऐसा मानते रहे हैं कि सउदी अरब ही ऊंटों का गढ़ है लेकिन हज पर्व के दौरान सउदी अरब में ऊंटों के मांस की खपत बढ़ जाती है और यह कमी ऑस्ट्रेलिया पूरा करता है.
10. एक बादल का वजन अमूमन 11 लाख पाउंड का होता है.
बादल हमें दिखने में चाहे जितने हल्के लगते हों मगर वे काफी भारी होते हैं. एक बादल के टुकड़े का भार लगभग 100 हाथियों के बराबर होता है.
11. झींगा मछली न तो बूढ़ी होती है और न ही कभी मरती है.
जी हां, झींगा मछलियां प्राकृतिक रूप से नहीं मरतीं और यहां भी इंसान ही उन्हें खा कर तमाम करता है.
12. ऑस्ट्रेलिया के प्रधानमंत्री, हैरॉल्ड होल्ट एक बार एकदम से गायब हो गए.
अब ऐसा किस प्रकार संभव है? मगर, यह बात 100% सच है. ऑस्ट्रेलिया के चेवियट समुद्री तट पर तैरने गए प्रधानमंत्री को फिर नहीं ढूंढा जा सका. 17 दिसंबर, 1967 को उन्हें मृत मान लिया गया.
13. हैप्पी बर्थडे गाने का कॉपीराइट हो चुका है.
इस कॉपीराइट कराने वाले को तो ऐसी की तैसी. हम तो अपना बर्थडे इसी गाने के साथ और डीजे पर मनाएंगे. हालांकि वार्नर/चैपल कंपनी ने 5 मिलियन डॉलर में इसका
कॉपीराइट
कराया है.
14. एक कागज को यदि आप 42 बार मोड़ सके तो आप चंद्रमा तक पहुंच जायेंगे.
वैसे तो आप किसी कागज को 6 या 7 बार से अधिक नहीं मोड़ सकते, मगर इस बात के पीछे पूरी थ्योरी और गणित का लॉजिक है. अब विशेष ज्ञान के लिए तो आपको गूगल बाबा का सहारा लेना पड़ेगा.
15. सिगरेट को 1950 के दौर तक हेल्दी प्रोडक्ट के तौर पर प्रमोट किया गया था.
डॉक्टर्स उन दिनों सिगरेट को कैंसर स्टिक के तौर पर प्रस्तुत करते थे और धीरे-धीरे यही कैंसर का प्रमुख कारक बन गई.
16. बृहस्पति ग्रह पर हीरों की बारिश होती है.
पैसों की किल्लत है तो हम तो विजय माल्या जी से बृहस्पति पर जाने का जुगाड़ लगाने को कहेंगे. आप सोचें कि किसकी मदद से पहुंचेंगे.
17. अगर आप ऊपर की ओर गाड़ी चला सकते तो आप अंतरिक्ष की बाहरी सतह पर एक घंटे में पहुंच जाएंगे.
अब ऐसा करने के लिए तो हमें पुष्पक विमान की जरूरत पड़ेगी, क्यों सही कहा न?
18. बाज हवा में ही संबंध स्थापित करते हैं.
अब इसमें हम अपनी ओर से कुछ नहीं जोड़ना चाहते, आप खुद समझदार हैं.
19. चार्ली चैप्लिन एक 'चार्ली चैप्लिन हू-ब-हू' की प्रतियोगिता में खुद ही हार गए थे.
अब हमारी दिलचस्पी तो यह जानने में है कि यह
प्रतियोगिता
किसने जीती थी. आखिर कौन था वह जो खुद चार्ली चैप्लिन से भी ओरिजिनल लगता था.
20. वैक्यूम के भीतर एक पंख और लोहे की गेंद छोड़ने पर दोनों साथ ही नीचे आएंगे.
अब इसके लिए तो मुझे नहीं लगता कि किसी को किताब उलटने-पलटने की जरूरत होगी. आखिर न्यूटन ऐसे ही हमारे पूर्वज थोड़े ही न कहे जाते हैं.
तो भैया कहो कैसी रही हमारी लफ्फाजी, माफ कीजिएगा रहस्यों का भंडाफोड़ करने के लिए तथ्यों की मजेदार पेशकश. अब जो अच्छी लगी हों तो दूसरों को भी इन तथ्यों से अवगत कराएं और इस लेख को आगे बढ़ाएं.
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राष्ट्रमंडल खेल आयोजन से जुड़ी अनियमितताओं के मामले में करीब नौ महीने से तिहाड़ जेल में बंद सुरेश कलमाड़ी दिल्ली उच्च न्यायालय से जमानत मिलने के बाद गुरुवार को बाहर आ गए।
कलमाडी (67) को पिछले साल 25 अप्रैल को गिरफ्तार किया गया था। वह आज शाम जेल संख्या चार से बाहर आए। लेकिन उन्होंने मीडियाकर्मियों से कोई बातचीत नहीं की।
उच्च न्यायालय ने 2-जी स्पेक्ट्रम आवंटन मामले में उच्चतम न्यायालय के फैसले के आधार पर राष्ट्रमंडल खेल आयोजन समिति के पूर्व महानिदेशक और सह आरोपी वी के वर्मा को भी जमानत दे दी।
अदालत ने 18 पृष्ठों के आदेश में कहा कि निचली अदालत ने रोजाना आधार पर सुनवाई का निर्देश दिया है। लेकिन मुख्य आरोप पत्र में ही 49 गवाहों का जिक्र किया गया है। इसके बाद दो पूरक आरोपपत्रों में और गवाहों का हवाला दिया गया है। ऐसे में सुनवाई में समय लग सकता है।
न्यायमूर्ति मुक्ता गुप्ता ने 2-जी मामले में उच्चतम न्यायालय के फैसले का जिक्र करते हुए कहा कि जमानत नियम है और जेल अपवाद है। अदालत ने कहा कि यह आरोप भी नहीं है कि आरोपी ने गवाहों को धमकी दी है।
कलमाडी ने 2-जी मामले में उच्चतम न्यायालय के फैसले के बाद उच्च न्यायालय से जमानत दिए जाने की मांग की थी। अदालत ने दोनों को पांच पांच लाख रूपये की जमानत और मुचलके भरने का आदेश दिया। अदालत ने सीबीआई के अनुरोध को खारिज कर दिया कि अगर रिहा कर दिया गया तो आरोपी गवाहों को प्रभावित कर सकते हैं।
न्यायमूर्ति गुप्ता ने कहा कि याचिकाकर्ताओं पर धनबल का इस्तेमाल करने संबंधी आरोप नहीं हैं। ऐसे प्रमाण भी नहीं हैं कि याचिकाकर्ता ने जांच अथवा सुनवाई के दौरान गवाहों को धमकी दी हो या सबूतों के साथ छेड़छाड़ की हो। अदालत ने उन्हें सुनवाई अदालत से अनुमति लिए बिना देश से बाहर नहीं जाने का आदेश दिया।टिप्पणियां
अदालत ने कहा कि याचिकाकर्ता कलमाडी आठ महीने से अधिक समय से और वी के वर्मा 10 महीनों से हिरासत में हैं। ऐसे आरोप नहीं हैं कि वे सुनवाई के लिए उपलब्ध नहीं हो सकते हैं। सीबीआई ने कलमाड़ी को 25 अप्रैल 2011 को और वर्मा को 23 फरवरी 2011 को टाइमिंग, स्कोरिंग एंड रिजल्ट सिस्टम (टीएसआर) मामले में गिरफ्तार किया था।
इस मामले में कलमाड़ी और वर्मा के अलावा अन्य आरोपियों में राष्ट्रमंडल आयोजन समिति के पूर्व महासचिव ललित भनोट, आयोजन समिति के महानिदेशक (अधिप्राप्ति) सुरजीत लाल, संयुक्त महानिदेशक (खेल) ए एस वी प्रसाद, कोषाध्यक्ष एम जयचंद्रन, हैदराबाद स्थित एकेआर कन्स्ट्रक्शन्स के प्रबंध निदेशक ए के रेड्डी और फरीदाबाद स्थित फर्म जेम इंटरनेशनल के प्रमोटर ए के मदान तथा पी डी आर्य शामिल हैं। इस मामले में दो कंपनियां ए के आर कन्स्ट्रक्शन्स और स्विस टाइमिंग भी आरोपी हैं।
कलमाडी (67) को पिछले साल 25 अप्रैल को गिरफ्तार किया गया था। वह आज शाम जेल संख्या चार से बाहर आए। लेकिन उन्होंने मीडियाकर्मियों से कोई बातचीत नहीं की।
उच्च न्यायालय ने 2-जी स्पेक्ट्रम आवंटन मामले में उच्चतम न्यायालय के फैसले के आधार पर राष्ट्रमंडल खेल आयोजन समिति के पूर्व महानिदेशक और सह आरोपी वी के वर्मा को भी जमानत दे दी।
अदालत ने 18 पृष्ठों के आदेश में कहा कि निचली अदालत ने रोजाना आधार पर सुनवाई का निर्देश दिया है। लेकिन मुख्य आरोप पत्र में ही 49 गवाहों का जिक्र किया गया है। इसके बाद दो पूरक आरोपपत्रों में और गवाहों का हवाला दिया गया है। ऐसे में सुनवाई में समय लग सकता है।
न्यायमूर्ति मुक्ता गुप्ता ने 2-जी मामले में उच्चतम न्यायालय के फैसले का जिक्र करते हुए कहा कि जमानत नियम है और जेल अपवाद है। अदालत ने कहा कि यह आरोप भी नहीं है कि आरोपी ने गवाहों को धमकी दी है।
कलमाडी ने 2-जी मामले में उच्चतम न्यायालय के फैसले के बाद उच्च न्यायालय से जमानत दिए जाने की मांग की थी। अदालत ने दोनों को पांच पांच लाख रूपये की जमानत और मुचलके भरने का आदेश दिया। अदालत ने सीबीआई के अनुरोध को खारिज कर दिया कि अगर रिहा कर दिया गया तो आरोपी गवाहों को प्रभावित कर सकते हैं।
न्यायमूर्ति गुप्ता ने कहा कि याचिकाकर्ताओं पर धनबल का इस्तेमाल करने संबंधी आरोप नहीं हैं। ऐसे प्रमाण भी नहीं हैं कि याचिकाकर्ता ने जांच अथवा सुनवाई के दौरान गवाहों को धमकी दी हो या सबूतों के साथ छेड़छाड़ की हो। अदालत ने उन्हें सुनवाई अदालत से अनुमति लिए बिना देश से बाहर नहीं जाने का आदेश दिया।टिप्पणियां
अदालत ने कहा कि याचिकाकर्ता कलमाडी आठ महीने से अधिक समय से और वी के वर्मा 10 महीनों से हिरासत में हैं। ऐसे आरोप नहीं हैं कि वे सुनवाई के लिए उपलब्ध नहीं हो सकते हैं। सीबीआई ने कलमाड़ी को 25 अप्रैल 2011 को और वर्मा को 23 फरवरी 2011 को टाइमिंग, स्कोरिंग एंड रिजल्ट सिस्टम (टीएसआर) मामले में गिरफ्तार किया था।
इस मामले में कलमाड़ी और वर्मा के अलावा अन्य आरोपियों में राष्ट्रमंडल आयोजन समिति के पूर्व महासचिव ललित भनोट, आयोजन समिति के महानिदेशक (अधिप्राप्ति) सुरजीत लाल, संयुक्त महानिदेशक (खेल) ए एस वी प्रसाद, कोषाध्यक्ष एम जयचंद्रन, हैदराबाद स्थित एकेआर कन्स्ट्रक्शन्स के प्रबंध निदेशक ए के रेड्डी और फरीदाबाद स्थित फर्म जेम इंटरनेशनल के प्रमोटर ए के मदान तथा पी डी आर्य शामिल हैं। इस मामले में दो कंपनियां ए के आर कन्स्ट्रक्शन्स और स्विस टाइमिंग भी आरोपी हैं।
उच्च न्यायालय ने 2-जी स्पेक्ट्रम आवंटन मामले में उच्चतम न्यायालय के फैसले के आधार पर राष्ट्रमंडल खेल आयोजन समिति के पूर्व महानिदेशक और सह आरोपी वी के वर्मा को भी जमानत दे दी।
अदालत ने 18 पृष्ठों के आदेश में कहा कि निचली अदालत ने रोजाना आधार पर सुनवाई का निर्देश दिया है। लेकिन मुख्य आरोप पत्र में ही 49 गवाहों का जिक्र किया गया है। इसके बाद दो पूरक आरोपपत्रों में और गवाहों का हवाला दिया गया है। ऐसे में सुनवाई में समय लग सकता है।
न्यायमूर्ति मुक्ता गुप्ता ने 2-जी मामले में उच्चतम न्यायालय के फैसले का जिक्र करते हुए कहा कि जमानत नियम है और जेल अपवाद है। अदालत ने कहा कि यह आरोप भी नहीं है कि आरोपी ने गवाहों को धमकी दी है।
कलमाडी ने 2-जी मामले में उच्चतम न्यायालय के फैसले के बाद उच्च न्यायालय से जमानत दिए जाने की मांग की थी। अदालत ने दोनों को पांच पांच लाख रूपये की जमानत और मुचलके भरने का आदेश दिया। अदालत ने सीबीआई के अनुरोध को खारिज कर दिया कि अगर रिहा कर दिया गया तो आरोपी गवाहों को प्रभावित कर सकते हैं।
न्यायमूर्ति गुप्ता ने कहा कि याचिकाकर्ताओं पर धनबल का इस्तेमाल करने संबंधी आरोप नहीं हैं। ऐसे प्रमाण भी नहीं हैं कि याचिकाकर्ता ने जांच अथवा सुनवाई के दौरान गवाहों को धमकी दी हो या सबूतों के साथ छेड़छाड़ की हो। अदालत ने उन्हें सुनवाई अदालत से अनुमति लिए बिना देश से बाहर नहीं जाने का आदेश दिया।टिप्पणियां
अदालत ने कहा कि याचिकाकर्ता कलमाडी आठ महीने से अधिक समय से और वी के वर्मा 10 महीनों से हिरासत में हैं। ऐसे आरोप नहीं हैं कि वे सुनवाई के लिए उपलब्ध नहीं हो सकते हैं। सीबीआई ने कलमाड़ी को 25 अप्रैल 2011 को और वर्मा को 23 फरवरी 2011 को टाइमिंग, स्कोरिंग एंड रिजल्ट सिस्टम (टीएसआर) मामले में गिरफ्तार किया था।
इस मामले में कलमाड़ी और वर्मा के अलावा अन्य आरोपियों में राष्ट्रमंडल आयोजन समिति के पूर्व महासचिव ललित भनोट, आयोजन समिति के महानिदेशक (अधिप्राप्ति) सुरजीत लाल, संयुक्त महानिदेशक (खेल) ए एस वी प्रसाद, कोषाध्यक्ष एम जयचंद्रन, हैदराबाद स्थित एकेआर कन्स्ट्रक्शन्स के प्रबंध निदेशक ए के रेड्डी और फरीदाबाद स्थित फर्म जेम इंटरनेशनल के प्रमोटर ए के मदान तथा पी डी आर्य शामिल हैं। इस मामले में दो कंपनियां ए के आर कन्स्ट्रक्शन्स और स्विस टाइमिंग भी आरोपी हैं।
अदालत ने 18 पृष्ठों के आदेश में कहा कि निचली अदालत ने रोजाना आधार पर सुनवाई का निर्देश दिया है। लेकिन मुख्य आरोप पत्र में ही 49 गवाहों का जिक्र किया गया है। इसके बाद दो पूरक आरोपपत्रों में और गवाहों का हवाला दिया गया है। ऐसे में सुनवाई में समय लग सकता है।
न्यायमूर्ति मुक्ता गुप्ता ने 2-जी मामले में उच्चतम न्यायालय के फैसले का जिक्र करते हुए कहा कि जमानत नियम है और जेल अपवाद है। अदालत ने कहा कि यह आरोप भी नहीं है कि आरोपी ने गवाहों को धमकी दी है।
कलमाडी ने 2-जी मामले में उच्चतम न्यायालय के फैसले के बाद उच्च न्यायालय से जमानत दिए जाने की मांग की थी। अदालत ने दोनों को पांच पांच लाख रूपये की जमानत और मुचलके भरने का आदेश दिया। अदालत ने सीबीआई के अनुरोध को खारिज कर दिया कि अगर रिहा कर दिया गया तो आरोपी गवाहों को प्रभावित कर सकते हैं।
न्यायमूर्ति गुप्ता ने कहा कि याचिकाकर्ताओं पर धनबल का इस्तेमाल करने संबंधी आरोप नहीं हैं। ऐसे प्रमाण भी नहीं हैं कि याचिकाकर्ता ने जांच अथवा सुनवाई के दौरान गवाहों को धमकी दी हो या सबूतों के साथ छेड़छाड़ की हो। अदालत ने उन्हें सुनवाई अदालत से अनुमति लिए बिना देश से बाहर नहीं जाने का आदेश दिया।टिप्पणियां
अदालत ने कहा कि याचिकाकर्ता कलमाडी आठ महीने से अधिक समय से और वी के वर्मा 10 महीनों से हिरासत में हैं। ऐसे आरोप नहीं हैं कि वे सुनवाई के लिए उपलब्ध नहीं हो सकते हैं। सीबीआई ने कलमाड़ी को 25 अप्रैल 2011 को और वर्मा को 23 फरवरी 2011 को टाइमिंग, स्कोरिंग एंड रिजल्ट सिस्टम (टीएसआर) मामले में गिरफ्तार किया था।
इस मामले में कलमाड़ी और वर्मा के अलावा अन्य आरोपियों में राष्ट्रमंडल आयोजन समिति के पूर्व महासचिव ललित भनोट, आयोजन समिति के महानिदेशक (अधिप्राप्ति) सुरजीत लाल, संयुक्त महानिदेशक (खेल) ए एस वी प्रसाद, कोषाध्यक्ष एम जयचंद्रन, हैदराबाद स्थित एकेआर कन्स्ट्रक्शन्स के प्रबंध निदेशक ए के रेड्डी और फरीदाबाद स्थित फर्म जेम इंटरनेशनल के प्रमोटर ए के मदान तथा पी डी आर्य शामिल हैं। इस मामले में दो कंपनियां ए के आर कन्स्ट्रक्शन्स और स्विस टाइमिंग भी आरोपी हैं।
न्यायमूर्ति मुक्ता गुप्ता ने 2-जी मामले में उच्चतम न्यायालय के फैसले का जिक्र करते हुए कहा कि जमानत नियम है और जेल अपवाद है। अदालत ने कहा कि यह आरोप भी नहीं है कि आरोपी ने गवाहों को धमकी दी है।
कलमाडी ने 2-जी मामले में उच्चतम न्यायालय के फैसले के बाद उच्च न्यायालय से जमानत दिए जाने की मांग की थी। अदालत ने दोनों को पांच पांच लाख रूपये की जमानत और मुचलके भरने का आदेश दिया। अदालत ने सीबीआई के अनुरोध को खारिज कर दिया कि अगर रिहा कर दिया गया तो आरोपी गवाहों को प्रभावित कर सकते हैं।
न्यायमूर्ति गुप्ता ने कहा कि याचिकाकर्ताओं पर धनबल का इस्तेमाल करने संबंधी आरोप नहीं हैं। ऐसे प्रमाण भी नहीं हैं कि याचिकाकर्ता ने जांच अथवा सुनवाई के दौरान गवाहों को धमकी दी हो या सबूतों के साथ छेड़छाड़ की हो। अदालत ने उन्हें सुनवाई अदालत से अनुमति लिए बिना देश से बाहर नहीं जाने का आदेश दिया।टिप्पणियां
अदालत ने कहा कि याचिकाकर्ता कलमाडी आठ महीने से अधिक समय से और वी के वर्मा 10 महीनों से हिरासत में हैं। ऐसे आरोप नहीं हैं कि वे सुनवाई के लिए उपलब्ध नहीं हो सकते हैं। सीबीआई ने कलमाड़ी को 25 अप्रैल 2011 को और वर्मा को 23 फरवरी 2011 को टाइमिंग, स्कोरिंग एंड रिजल्ट सिस्टम (टीएसआर) मामले में गिरफ्तार किया था।
इस मामले में कलमाड़ी और वर्मा के अलावा अन्य आरोपियों में राष्ट्रमंडल आयोजन समिति के पूर्व महासचिव ललित भनोट, आयोजन समिति के महानिदेशक (अधिप्राप्ति) सुरजीत लाल, संयुक्त महानिदेशक (खेल) ए एस वी प्रसाद, कोषाध्यक्ष एम जयचंद्रन, हैदराबाद स्थित एकेआर कन्स्ट्रक्शन्स के प्रबंध निदेशक ए के रेड्डी और फरीदाबाद स्थित फर्म जेम इंटरनेशनल के प्रमोटर ए के मदान तथा पी डी आर्य शामिल हैं। इस मामले में दो कंपनियां ए के आर कन्स्ट्रक्शन्स और स्विस टाइमिंग भी आरोपी हैं।
कलमाडी ने 2-जी मामले में उच्चतम न्यायालय के फैसले के बाद उच्च न्यायालय से जमानत दिए जाने की मांग की थी। अदालत ने दोनों को पांच पांच लाख रूपये की जमानत और मुचलके भरने का आदेश दिया। अदालत ने सीबीआई के अनुरोध को खारिज कर दिया कि अगर रिहा कर दिया गया तो आरोपी गवाहों को प्रभावित कर सकते हैं।
न्यायमूर्ति गुप्ता ने कहा कि याचिकाकर्ताओं पर धनबल का इस्तेमाल करने संबंधी आरोप नहीं हैं। ऐसे प्रमाण भी नहीं हैं कि याचिकाकर्ता ने जांच अथवा सुनवाई के दौरान गवाहों को धमकी दी हो या सबूतों के साथ छेड़छाड़ की हो। अदालत ने उन्हें सुनवाई अदालत से अनुमति लिए बिना देश से बाहर नहीं जाने का आदेश दिया।टिप्पणियां
अदालत ने कहा कि याचिकाकर्ता कलमाडी आठ महीने से अधिक समय से और वी के वर्मा 10 महीनों से हिरासत में हैं। ऐसे आरोप नहीं हैं कि वे सुनवाई के लिए उपलब्ध नहीं हो सकते हैं। सीबीआई ने कलमाड़ी को 25 अप्रैल 2011 को और वर्मा को 23 फरवरी 2011 को टाइमिंग, स्कोरिंग एंड रिजल्ट सिस्टम (टीएसआर) मामले में गिरफ्तार किया था।
इस मामले में कलमाड़ी और वर्मा के अलावा अन्य आरोपियों में राष्ट्रमंडल आयोजन समिति के पूर्व महासचिव ललित भनोट, आयोजन समिति के महानिदेशक (अधिप्राप्ति) सुरजीत लाल, संयुक्त महानिदेशक (खेल) ए एस वी प्रसाद, कोषाध्यक्ष एम जयचंद्रन, हैदराबाद स्थित एकेआर कन्स्ट्रक्शन्स के प्रबंध निदेशक ए के रेड्डी और फरीदाबाद स्थित फर्म जेम इंटरनेशनल के प्रमोटर ए के मदान तथा पी डी आर्य शामिल हैं। इस मामले में दो कंपनियां ए के आर कन्स्ट्रक्शन्स और स्विस टाइमिंग भी आरोपी हैं।
न्यायमूर्ति गुप्ता ने कहा कि याचिकाकर्ताओं पर धनबल का इस्तेमाल करने संबंधी आरोप नहीं हैं। ऐसे प्रमाण भी नहीं हैं कि याचिकाकर्ता ने जांच अथवा सुनवाई के दौरान गवाहों को धमकी दी हो या सबूतों के साथ छेड़छाड़ की हो। अदालत ने उन्हें सुनवाई अदालत से अनुमति लिए बिना देश से बाहर नहीं जाने का आदेश दिया।टिप्पणियां
अदालत ने कहा कि याचिकाकर्ता कलमाडी आठ महीने से अधिक समय से और वी के वर्मा 10 महीनों से हिरासत में हैं। ऐसे आरोप नहीं हैं कि वे सुनवाई के लिए उपलब्ध नहीं हो सकते हैं। सीबीआई ने कलमाड़ी को 25 अप्रैल 2011 को और वर्मा को 23 फरवरी 2011 को टाइमिंग, स्कोरिंग एंड रिजल्ट सिस्टम (टीएसआर) मामले में गिरफ्तार किया था।
इस मामले में कलमाड़ी और वर्मा के अलावा अन्य आरोपियों में राष्ट्रमंडल आयोजन समिति के पूर्व महासचिव ललित भनोट, आयोजन समिति के महानिदेशक (अधिप्राप्ति) सुरजीत लाल, संयुक्त महानिदेशक (खेल) ए एस वी प्रसाद, कोषाध्यक्ष एम जयचंद्रन, हैदराबाद स्थित एकेआर कन्स्ट्रक्शन्स के प्रबंध निदेशक ए के रेड्डी और फरीदाबाद स्थित फर्म जेम इंटरनेशनल के प्रमोटर ए के मदान तथा पी डी आर्य शामिल हैं। इस मामले में दो कंपनियां ए के आर कन्स्ट्रक्शन्स और स्विस टाइमिंग भी आरोपी हैं।
अदालत ने कहा कि याचिकाकर्ता कलमाडी आठ महीने से अधिक समय से और वी के वर्मा 10 महीनों से हिरासत में हैं। ऐसे आरोप नहीं हैं कि वे सुनवाई के लिए उपलब्ध नहीं हो सकते हैं। सीबीआई ने कलमाड़ी को 25 अप्रैल 2011 को और वर्मा को 23 फरवरी 2011 को टाइमिंग, स्कोरिंग एंड रिजल्ट सिस्टम (टीएसआर) मामले में गिरफ्तार किया था।
इस मामले में कलमाड़ी और वर्मा के अलावा अन्य आरोपियों में राष्ट्रमंडल आयोजन समिति के पूर्व महासचिव ललित भनोट, आयोजन समिति के महानिदेशक (अधिप्राप्ति) सुरजीत लाल, संयुक्त महानिदेशक (खेल) ए एस वी प्रसाद, कोषाध्यक्ष एम जयचंद्रन, हैदराबाद स्थित एकेआर कन्स्ट्रक्शन्स के प्रबंध निदेशक ए के रेड्डी और फरीदाबाद स्थित फर्म जेम इंटरनेशनल के प्रमोटर ए के मदान तथा पी डी आर्य शामिल हैं। इस मामले में दो कंपनियां ए के आर कन्स्ट्रक्शन्स और स्विस टाइमिंग भी आरोपी हैं।
इस मामले में कलमाड़ी और वर्मा के अलावा अन्य आरोपियों में राष्ट्रमंडल आयोजन समिति के पूर्व महासचिव ललित भनोट, आयोजन समिति के महानिदेशक (अधिप्राप्ति) सुरजीत लाल, संयुक्त महानिदेशक (खेल) ए एस वी प्रसाद, कोषाध्यक्ष एम जयचंद्रन, हैदराबाद स्थित एकेआर कन्स्ट्रक्शन्स के प्रबंध निदेशक ए के रेड्डी और फरीदाबाद स्थित फर्म जेम इंटरनेशनल के प्रमोटर ए के मदान तथा पी डी आर्य शामिल हैं। इस मामले में दो कंपनियां ए के आर कन्स्ट्रक्शन्स और स्विस टाइमिंग भी आरोपी हैं।
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क्रिकेट की दुनिया की सबसे मशहूर आवाज़ के तौर पर जाने जाने वाले रिची बेनो का सिडनी में निधन हो गया। वह ऑस्ट्रेलियन क्रिकेट के लीजेंड थे। वह 84 साल के थे और लंबे वक्त से कैंसर से जूझ रहे थे। इसके अलावा साल 2013 में घर के पास ही हुए एक कार एक्सीडेंट में घायल होने के बाद से उनकी सेहत ठीक नहीं रहा करती थी।
बेनो ऑस्ट्रेलियाई क्रिकेट टीम के एक जोरदार ऑलराउंडर थे। साल 1964 में वह जब रिटायर हुए, तब लेग स्पिनर के तौर पर उनके 248 विकेट थे। टेस्ट क्रिकेट में 2000 से ज्यादा रन और 200 से ज्यादा विकेट का डबल कारनामा दिखाने वाले वह पहले क्रिकेटर थे। ऑस्ट्रेलिया की ओर से उन्होंने 63 टेस्ट खेले और इनमें से 28 में कप्तानी की। बेनो अपनी कप्तानी में कोई टेस्ट सीरीज़ नहीं गंवाने वाले कप्तान साबित हुए।
हालांकि इसके बाद उन्होंने क्रिकेट की दुनिया में सबसे बड़े कमेंटेटर और ब्रॉडकास्टर के तौर पर उभरे। पहले बीबीसी और फिर ऑस्ट्रेलियाई चैनल नाइन के क्रिकेट प्रसारण को बेहतर बनाने में उनका खासा योगदान रहा। उनकी पहचान दुनिया भर में सबसे प्रतिष्ठित क्रिकेट आवाज़ के तौर पर होती थी। साल 1997 के कैरी पैकर सीरीज़ के शुरू करने में भी उनकी भूमिका थी।
पिछले दो साल को अगर छोड़ दें, तो बेनो और ऑस्ट्रेलियाई क्रिकेट सीजन एक-दूसरे के पूरक थे। उनके निधन पर शोक जताते हुए ऑस्ट्रेलियाई प्रधानमंत्री टॉनी एबट ने कहा, 'हमारे देश ने एक आयकन खो दिया है।'
ऑस्ट्रेलियाई कप्तान माइकल क्लार्क ने बेनो को एक शानदार कप्तान बताया। क्लार्क ने कहा, 'वह एक शानदार क्रिकेटर और बेहतरीन कप्तान थे।'
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डक टेल्स एक अमेरिकी एनिमेटेड टेलीविजन श्रृंखला है जिसे वॉल्ट डिज़्नी टेलीविजन एनीमेशन के द्वारा बनाया गया है। कार्ल बार्क की कॉमिक पुस्तक श्रृंखला अंकल स्क्रूज पर आधारित इस श्रृंखला का पहला प्रदर्शन 18 सितंबर 1987 को हुआ तथा कुल 4 सत्रों और 100 कड़ियों के साथ 28 नवम्बर 1990 को समाप्त हो गया। श्रृंखला पर आधारित एक एनिमेटेड नाट्य फिल्म, DuckTales the Movie: Treasure of the Lost Lamp 3 अगस्त 1990 में संयुक्त राज्य अमेरिका में व्यापक रूप से लोकार्पित की गयी जो टी वी श्रृंखला का अतिरिक्त उत्पाद थी। यह महत्वपूर्ण रूप से और वित्तीय रूप से सफल थी और श्रृंखला के मूल कलाकारों ने फिल्म में अपनी पार्श्व आवाज़ का प्रतिदान किया।
प्रस्तावना
इस शो में स्क्रूज मैकडक और उसके उत्साही भतीजों के रोमांचक कारनामें दिखाए गए हैं। भतीजे, जो मूल रूप से अपने चाचा डोनाल्ड के साथ रहते थे अब स्क्रूज की देखभाल में रहते है, जब डोनाल्ड नौसेना में शामिल हो जाता है।
हालांकि स्क्रूज दुनिया में सबसे अमीर बतख है, वह लगातार अपने धन को बढ़ाने के तरीके खोजने की कोशिश करता है। कई कड़ियों में वो उन खलनायकों से अपनी संपत्ति की रक्षा करता दिखाई देता है, जो उसकी सारी संपत्ति लूटना चाहते हैं। बीगल ब्वाएस और मैजिका डी स्पेल इस शो में बार बार दिखने वाले प्रमुख प्रतिनायकों में शामिल हैं, जो हमेशा स्क्रूज और उसके भतीजों को लूटने और ठगने के तरीके ढूंढते रहते हैं। फ्लिंटहार्ट ग्लोमगोल्ड शो में स्क्रूज से हमेशा प्रतिशोध लेने को तैयार रहता है वो हमेशा स्क्रूज मैकडक को उसकी पदवी "विश्व में सबसे अमीर बतख" की गद्दी से उतारने की योजनाएं बनाता रहता है। कुछ कथाएँ स्क्रूज के सबसे महत्वपूर्ण सिक्के के चारों ओर भी घूमती हैं, जो स्क्रूज की अच्छी किस्मत और दौलत का स्रोत है। स्क्रूज उस सिक्के को एक शीशे के जार में बंद करके तिजोरी में रखता है और शो के खलनायकों से लगातार उसकी रक्षा करता रहता है।
शो के दूसरे सत्र में फेनटन क्रैकशेल और बूब्बा डक नाम के दो चरित्र जुड़े. और साथ आयी वो कहानियां जो पहले सत्र के अक्सर यात्रा करने वाले कथानकों से अलग थीं और मुख्य रूप से डकबर्ग के समकालीन माहौल के आसपास घूमती थीं। कड़ियों में या तो बूब्बा या फेनटन दिखते, लेकिन दोनों एक साथ बहुत कम दिखते थे।
हालांकि स्क्रूज और उनके भतीजे शो के मुख्य चरित्र थे, कुछ कड़ियाँ लान्चपैड या गायरो जैसे अन्य पात्रों पर भी केन्द्रित थी। स्क्रूज के बढे हुए परिवार (द डक यूनिवर्स) के कुछ सदस्य भी इस श्रृंखला में दिखे, जैसे ग्लैडस्टोन गैंदर, जिसकी किस्मत बहुत अच्छी है। ग्लैडस्टोन जैसे चरित्र को अक्सर कार्ल बार्क की शुरूआत की कॉमिक बुक कहानियों में देखा गया था।
कुछ कड़ियाँ कार्ल बार्क की कहानियों पर आधारित हैं और कुछ में ऐसी कहानियों के तत्त्व हैं। उदाहरण के लिए, कड़ी "द अनब्रेकेबल बिन" बार्क की कहानी द अनसेफ सेफ पर आधारित है।
निर्माण
डिज़्नी कार्टून के पहली बार सिंडिकेट के लिए निर्मित होने के कारण तथा चिप एन डेल रेस्क्यू रेंजर्स 'और टेल स्पिन जैसे भविष्य के डिज़्नी कार्टूनों के लिए एक रास्ता बनाने के कारण ये श्रृंखला उल्लेखनीय है। डकटेल्स की श्रृंखला में दो नए उत्पाद डार्क्विंग डक 'और क्वैक पैक पैदा किये गए .
18-20 सितम्बर 1987 के (तारीख और समय, बाजार के अनुसार भिन्न-भिन्न) सप्ताहांत के दौरान टेलीविजन फिल्म (जिसका शीर्षक "द ट्रेजर्स ऑफ़ गोल्डेन संस" था) का पहला विश्व प्रसारण हुआ था। तब से, ये श्रृंखला एक पांच भाग के धारावाहिक के रूप में नियमित रूप से दिखाई जा रही है। 3 अगस्त 1990 में एक फीचर लम्बाई की फिल्म सिनेमाघरों में लोकार्पित की गयी। 28 नवम्बर 1990 को सौवीं कड़ी (जो श्रृंखला समापन कड़ी थी) का प्रसारण हुआ।
ये शो, टीवी लिए उच्च गुणवत्ता वाली एनीमेशन श्रृंखला बनाने के लिए डिज़्नी का एक बेहद सफल शरुआती प्रयास था (पहले के शो में 1985 में वूज्ज़ेल्स और डिज़्नी के एडवेंचर ऑफ़ गुम्मी बियर शामिल थे). डिज़्नी ने इस टीवी श्रृंखला पर पूर्व में एनिमेटेड शो पर किये गए खर्च की तुलना में धन का बहुत अधिक निवेश किया था। यह एक जोखिम भरा कदम माना जाता था, क्योंकि अधिकतर 1980 के दशक तक टीवी कार्टून के इतिहास में एनिमेटेड टीवी श्रृंखला को आम तौर पर कम बजट का निवेश माना जाता था। डकटेल्स की अधिकतर कड़ियाँ एशिया में कुकूस नेस्ट स्टूडियो, वैंग फिल्म प्रोडक्शन और जापान की टोक्यो मूवी शिन्शा द्वारा एनीमेट की जा रही थी।
कई आलोचकों का कहना है कि डिज़्नी के खुद के एनीमेशन स्टूडियो ने अपनी चमक 1980 के दशक में वॉल्ट डिज़्नी के गुजरने के दौरान खो दी थी। हालांकि, स्टूडियो ने कई सारे जोखिम उठाए जो काफी फायदेमंद रहे और डकटेल्स इन्ही जोखिमों में से एक था जिसने बहुत अधिक फायदा कमाया. स्टूडियो ने ये सोच कर जुआं खेला कि गुणवत्ता वाले एनीमेशन में बड़ा निवेश सिंडिकेशन के द्वारा वापस मिल जाएगा-ये एक ऐसा विचार था जो टीवी के सीधे प्रसारण के साथ पुनर्चालन के लिए उपयुक्त था, लेकिन जिसे केवल ऐसी सस्ती कार्टून श्रृंखला के साथ इस्तेमाल किया गया था, जिन्हें दशकों पुराने थियेटर के दृश्यों से पुनर्निर्मित किया गया था या वे फीचर तक सीमित कम बजट एनीमेशन थे।
1987-1988 के सत्र की डक टेल्स में 65 कड़ियाँ (डिज़्नी टी वी शो की मानक लम्बाई) थी। पाँच भागों वाले दो और धारावाहिक - "टाइम इस मनी" और "सुपर डक टेल्स" विशेष टीवी फिल्म के रूप में नवंबर 1988 और मार्च 1989 में पहली बार दिखाए गए। दूसरे सत्र के बचे हिस्से में (1989 का पतझड़ - 1989 की सर्दियों) अतिरिक्त 18 एपिसोड भी शामिल है। अगस्त 1990 में DuckTales the Movie: Treasure of the Lost Lamp दूसरे सत्र में लोकार्पित किये गए शो में, बूब्बा द केव डक और उसका पालतू ट्राईसेराटॉप्स, टूट्सी और फेंटन क्रैकशेल और उसका अहंकारी प्रतिरूप गिज्मो बतख दिखे. सितंबर में 1990, डिज़्नी दोपहर के समय शुरू किया गया, जिसमे डक टेल्स शामिल थी। अंतिम सात कड़ियाँ पतझड़ में जारी की गयीं (जिसमे दूसरे सत्र के लिए बनाई गयी तीन कड़ियाँ जिन्हें दिखाने के लिए रोक लिया गया था, तथा तीसरे सत्र के लिए विशेष रूप से बनाई गयी चार कड़ियाँ भी शामिल थी), जिन्हें मिला कर कड़ियों की कुल संख्या 100 हो गयी- इसने डक टेल्स को कड़ियों की संख्या के हिसाब से सबसे लंबा चला डिज़्नी शो बना दिया।
शो इतना अधिक सफल रहा था कि इसने एक फीचर फिल्म, DuckTales the Movie: Treasure of the Lost Lamp दो अतिरिक्त उत्पाद श्रृंखला डार्क्विंग डक और क्वैक पैक को जन्म दिया। डक टेल्स की सफलता ने 1988 में उच्च गुणवत्ता वाली एनिमेटेड टीवी श्रृंखला जिसमे डिज़्नी की खुद की द न्यू एडवेंचर ऑफ़ विनी एंड पूह के लिए रास्ता खोल दिया।
1989-1990 के टेलीविजन सत्र में दिखाने के लिए 1989 की श्रृंखला चिप'एन डेल रेस्क्यू रेंजर को डक टेल्स के साथ जोड़ा बना कर एक घंटे के सिंडीकेट शो के रूप में प्रस्तुत किया गया। 1990-1991 के सत्र में, डिज़्नी ने आधे घंटे वाले चार कार्टूनों का दो घंटे का सिंडीकेट ब्लॉक द डिज़्नी आफ्टरनून बनाने के लिए अपने इस विचार को और भी विस्तृत किया। डक टेल्स इस श्रृंखला का शुरुआती प्रमुख कार्टून था।
ह्युई, ड्युई और ल्युई सभी, नशे की दवा की रोकथाम के कार्टून वीडियो ऑल स्टार्स टू द रेस्क्यू में दिखाई दिए। स्क्रूज और लॉन्चपैड डिज़्नी की अल्पजीवी एनिमेटेड श्रृंखला रा टून एज में दिखाई दिए (1992 और 1993 में मूल रूप से सीबीएस पर दिखाए गए).
डक टेल्स आख़िरी बार टून डिज़्नी पर दिखा था, ये डिज़्नी के स्वामित्व वाला नेटवर्क है जो अधिकतर एनिमेटेड कार्टून प्रसारित करता है। फ़रवरी 2004 में जेटिक्स के आने के बाद 2006 तक, शो दूसरे कई शो के साथ प्रचलन से बाहर हो गया। डिज़्नी चैनल ने 1990 के अंत तक, श्रृंखला पुनः प्रसारित की जब तक कि उनकी किशोरों से कम उम्र वालों की श्रृंखला ने जगह बना ली।
चरित्र
लगभग हर कड़ी में दिखने वाले श्रृंखला के मुख्य पात्र स्क्रूज मैकडक और उसके भतीजे के बच्चे ह्युई, ड्युई और ल्युई है। स्क्रूज मैकडक एक गंभीर व्यापारी है, जो दुनिया का सबसे अमीर बतख भी है, एक कंजूस जिसने चालाकों से अधिक चालाक, तथा कठोर से भी अधिक कठोर बन कर दौलत इकट्ठा की है। अपने कठोर व्यापार सिद्धांतों के बावजूद, स्क्रूज अपने परिवार की देखभाल करता है। ह्युई, ड्युई और ल्युई स्क्रूज के उत्साही भतीजे हैं, जो पूरी श्रृंखला के दौरान उसकी देखभाल में रहते हैं। हालांकि काफी अति सक्रिय हैं, साथ ही भतीजे चतुर और बुद्धिमान भी हैं।
इस श्रृंखला में कॉमिक्स से लिए गए स्थापित एवं साथ ही शो के लिए बनाए गए नए चरित्रों को भी दिखाया गया है। स्क्रूज के कुटुंब में खानसामा, डकवर्थ; श्रीमती बीक्ले, जो ह्युई, ड्युई और ल्युई की देखभाल के लिए आया हैं तथा उनकी पोती वेब्बी वेंडरक्वैक शामिल हैं।
शुरू में, कम दिमाग अविष्कारक गायरो गियरलूस, वीर लेकिन गैर प्रतिभाशाली पायलट लान्चपैड मैकडक और वफादार लेकिन कुछ हद तक बेवकूफ डूफ्स ड्रैक बार-बार दिखने वाले चरित्रों में शामिल थे। दुसरे सत्र के दौरान बूब्बा, अतीत से आया एक केवडक और एक लेखाकार, फेनटन क्रेकशेल, जिसकी दोहरी पहचान गिज्मोडक थी, चरित्रों में जोड़े गए थे।
शो के प्राथमिक खलनायको में शामिल थे, मैजिका डी स्पेल, फ्लिंटहार्ट ग्लोमगोल्ड और बीगल ब्व्यास. हालांकि वे एक सभी एक या दूसरी तरह से स्क्रूज के लिए वित्तीय खतरा हैं, लेकिन सबका अलग-अलग उद्देश्य है, मैजिका अपना जादू पूरा करने के लिए स्क्रूज के सबसे महत्वपूर्ण सिक्केचाहती है, जो उसे दुनिया को कब्जे में लेने में सहायक होगा; ग्लोमगोल्ड स्क्रूज को "दुनिया के सबसे अमीर बतख" के पद से हटाना चाहता है; और बीगल ब्व्यास स्क्रूज की दौलत लूटना चाहते हैं। शो में दिखाने के लिए मा बीगल, बीगल ब्व्यास की माँ और पू डी स्पेल, मैजिका का भाई जो एक तरह के कौवे में बदल गया है, नए खलनायको की तरह निर्मित किये गए।
श्रृंखला की शुरुआत में डोनाल्ड डक, जिसने ह्युई, ड्युई और ल्युई को स्क्रूज की देखभाल में छोड़ा है, ग्लैडस्टोन गैंदर जो स्क्रूज का बेवजह भाग्यशाली भतीजा है, स्क्रूज की पुरानी प्रेमिका, ग्लिटरिंग गोल्डी; मर्लोक, एक शक्यिशाली जादूगर, जो फिल्म के मुख्य खलनायक की भूमिका में है; और डिजोन, जो या तो खुद के लिए काम करता है या मर्लोक के लिए आदि कुछ छोटे लेकिन ध्यान खीचने वाले चरित्र हैं।
कड़ियाँ
डीवीडी लोकार्पण
अब 2009 से, वॉल्ट डिज़्नी स्टूडियो होम एंटरटेनमेंट डक टेल्स को डीवीडी पर जारी करने की प्रक्रिया में है। जहां तीन खण्डों को क्षेत्र 1 उत्तरी अमेरिका में जारी कर दिया गया है, वहीं एक खंड क्षेत्र 2 यूनाइटेड किंगडम में जारी किया गया है।
कड़ियाँ उसी क्रम में है जैसे कि वे मूलतः प्रसारित की गयीं थी (पाँच भाग वाले धारावाहिक " ट्रेजर ऑफ़ दी गोल्डन संस" को छोड़ कर). किसी भी डीवीडी सेट में कोई भी विशेष लक्षण नहीं हैं।
अंतरराष्ट्रीय प्रसारण
चिली
टीवीएन (1988-1991)
कनल 13 (1992-1995)
ब्राजील
एसबीटी (1988-2008)
रेडे ग्लोबो (2009-आज तक)
भारत
दूरदर्शन
स्पेन
टीवीई (1990-1999)
स्वीडन
टीवी3 पुराने डब किये हुए
एसवीटी नई डब की हुई
टून डिज़्नी दोनों डब किये हुए
ऑस्ट्रेलिया
चैनल 7 ऑस्ट्रेलिया (1989-1999)
समायोजन (पृष्ठभूमि)
संगीत
श्रृंखला का मूल गीत, मार्क म्यूएलर द्वारा लिखा गया था जो एक एएससीएपी पुरस्कार विजेता पॉप संगीत के गीतकार है और जिन्होंने चिप एन डेल रेस्क्यू रेंजर का मूल गीत भी लिखा है। कड़ियों का पृष्ठभूमि संगीत संगीतकार रॉन जोन्स द्वारा लिखा गया था। इसके विपरीत कि कैसे दूसरे संगीतकार एक "संरक्षित" और "प्यारा" और दिखाने के लिए शो के संगीत का निर्माण कर रहे थे, जोन्स बोले उन्होंने संगीत का निर्माण दर्शकों और उनके विवेक को ध्यान में रखते हुए किया है।
डक टेल्स का मूल गीत जेफ़ पेससेत्तो द्वारा गाया गया था। मूल गीत के चार विभिन्न संस्करण हैं। मूल संस्करण में एक कविता, समूह गीत, ब्रिज और फिर समूह गीत निहित था। उदघाटन विषय गीत के एक छोटे संस्करण का प्रयोग डिज़्नी दोपहर वाली श्रृंखला में इस पंक्ति के साथ इस्तेमाल किया गया था, "एवरी डे दे आर आउट देयर मेकिंग डक टेल्स, वू-ऊह". मुख्य गीत का पूर्ण संस्करण डिज़्नी दोपहर के ध्वनिपथ पर जारी किया गया था। पूर्ण संस्करण में एक दूसरी कविता शामिल है और इसमें एक गिटार का एकल संगीत शामिल है, जिसे वाह-वाह पेडल के साथ बजाया गया है, साथ ही बतखों जैसी आवाजें भी इसमें शामिल हैं। अन्य संस्करणों के विपरीत इसकी समाप्ति धुंधले पड़ते हुए होती है। एक दुर्लभ बढ़ाया गया संस्करण भी है जिसे 1987 में कैसेट में साथ पढ़ते हुए उपयोग में लाया गया है। यह कविता-समूह गीत-ब्रिज-समूह गीत-वाद्य विश्राम-समूह गीत के क्रम में है।
फिल्म
डक टेल्स चलचित्र:ट्रेजर ऑफ़ दी लास्ट लैम्प पूरे संयुक्त राज्य अमेरिका में 3 अगस्त 1990 को वॉल्ट डिज़्नी पिक्चर्स द्वारा जारी की गयी थी। फिल्म स्क्रूज मैक डक और उनके भतीजों द्वारा बुरे वार्लोक मेर्लोक को पौराणिक जादुई चिराग लेने के प्रयास में हराने पर आधारित थी।
अभिग्रहण
जनवरी 2009 में आईजीएन ने डक टेल्स को 100 सर्वश्रेष्ठ एनिमेटेड टीवी शो में 18 वें स्थान पर रखा।
व्यापारिक/प्रचार वस्तुएं
वीडियो और कंप्यूटर गेम
हास्य पुस्तकें और व्यापारिक पेपरबैक
डक टेल्स
डक टेल्स की कॉमिक पुस्तकों की दो श्रृंखलाये थीं। पहली श्रृंखला को ग्लैडस्टोन प्रकाशन द्वारा प्रकाशित किया गया था और 1988 से 1990 के मध्य इसके 13 संस्करण आये और दूसरी श्रृंखला डिज़्नी कोमिक्स द्वारा प्रकाशित किया गया था और 1990 से 1991 के मध्य इसके 18 संस्करण आये। डिज़्नी ने बच्चों के लिए शो पर आधारित एक पत्रिका भी प्रकाशित की, जिसमे कोमिक कहानियां भी शामिल थी, इनमे से डान रोसा द्वारा अकेली लिखी गयी कहानी भी थी, जिसका उन्होंने कोई चित्रण नहीं किया था। बाद की कोमिक कहानियां, 1990 से 1996 तक डिज़्नी एडवेंचर्स पत्रिका में भी छापी गयी।
29 अगस्त 2007, को डिज़्नी ने स्क्रूज्स क्वेस्ट और बाद में गोल्ड ओडिसी की एक व्यापार पुस्तिका जारी की।
अंकल स्क्रूज #392-395 लाइक ए हरीकेन
अंकल स्क्रूज कॉमिक्स के अंक 392 -395 में शामिल डक टेल्स कॉमिक कहानियां अमेरिका में पहले कभी नहीं देखी हुई होंगी.
कार्ल बार्क की महानतम डक टेल्स कहानियां
24 मई और 19 जुलाई 2006 को जेमस्टोन ने एक दो भाग वाला व्यापारिक पेपरबैक कार्ल बार्क की महानतम डक टेल्स कहानियां प्रकाशित किया। इनमे कार्ल बार्क द्वारा लिखी उन कहानियों का पुनर्मुद्रण शामिल था जिन्हें विशेष रूप से डक टेल्स की टेलीविजन कड़ियों में शामिल किया गया था।
दोनों भाग एक परिचय के साथ शुरू होते हैं और मूल कॉमिक कहानी से इसकी तुलना डक टेल्स कड़ी के समकक्ष के साथ करते हैं। भाग 1 में एक दो पेज का लेख भी शामिल है जो कॉमिक श्रृंखला से शो के रूपांतरण के बारे में वर्णन को बताता है।
अन्तर्राष्ट्रीय
डक टेल्स की सफलता के कारण इस शो का कई भाषाओं में अनुवाद हुआ। डक टेल्स पहली अमरीकी एनिमेटेड टीवी श्रृंखला थी जिसे सिंडिकेशन में तत्कालीन सोवियत संघ में आधिकारिक तौर पर प्रसारित किया गया। इस शो का पहला प्रदर्शन 1991 में चिप एन डेल रेस्क्यू रेंजर्स के साथ रविवार शाम के कार्यक्रम में हुआ जिसका शीर्षक वॉल्ट डिज़्नी प्रेसेन्ट्स था।
शो का मूल गीत (मार्क म्यूएलर द्वारा लिखा और मूल रूप से जेफ़ पेससेत्तो द्वारा गाया गया) बहरहाल, कई कड़ियों तक अंग्रेजी में बना रहा। गीत का पहला रूसी संस्करण बीच में ही एक वैकल्पिक व्याख्या से बदल दिया गया जिसमे पूरी तरह से अलग बोल शामिल थे। इसी तरह, जर्मन और स्विडिश संस्करण में मूल गीत में स्थानीय भाषा के बोलों से श्रृंखला के बीच में बदलाव किये गए थे। श्रृंखला भारत में हिंदी में डब करके प्रसारित की गयी।
हंगरी में शब्द "डक टेल्स जेनरेशन" (Kacsamesék generáció) उन लोगों के सन्दर्भ में इस्तेमाल होता है जो 1980 की शुरुआत से मध्य में पैदा हुए थे, क्योंकि पहले लोकत्रांत्रिक रूप से चुने गए हंगरी के प्रधान मंत्री जोज़फ़ अन्टाल की मृत्यु की घोषणा 1993 में डक टेल्स की एक कड़ी के दौरान की गयी थी। यह इस पीढ़ी का राजनीति के साथ पहला आमना सामना था।
कई देशों में डक टेल्स गीत जाने माने गायकों ने गाया था (जैसे फिनलैंड, जहां इसे पावे मैजनेन ने गाया था या जर्मनी, जहां इसे थामस एंडर्स ने गाया था).
इन्हें भी देखें
डार्कविंग डक
क्वैक पैक
सन्दर्भ
बाहरी कड़ियाँ
टीवी.कॉम पर डकटेल्स
द डिज़्नी आफ्टरनून
डकटेल्स
डिज़नी द्वारा टेलीविजन श्रृंखलाएं
डोनाल्ड डक टेलीविजन श्रृंखला
1987 की प्रथम टेलीविजन श्रृंखला
1990 टेलीविज़न श्रृंखला का अंत
1980 की अमेरिकी एनिमेटेड टेलीविजन श्रृंखला
1990 की अमेरिकी एनिमेटेड टेलीविजन श्रृंखला
डिज़्नी चैनल दिखाता है
ग्लैडस्टोन कॉमिक शीर्षक
डिज़्नी कॉमिक शीर्षक
टेलीविजन कार्यक्रम जिनमे मानव सदृश चरित्र दिखते हैं
संयुक्त राज्य अमेरिका में प्रसारित प्रथम सिंडिकेटेड टेलीविजन कार्यक्रम
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बॉलीवुड के 'दबंग खान' सलमान अपने दोस्तों के चहेते हैं. सलमान इन दिनों फिल्म 'किक' की शूटिंग में व्यस्त हैं. हाल ही खबर आई कि सलमान फिल्म के एक सीन के लिए 40 मंजिला इमारत से लटक गए. इस बीच फिल्म के प्रोड्यूसर और सलमान के दोस्त साजिद नाडियावाला की पत्नी वारडा ने सलमान को सुपरमैन और स्पाइडरमैन से भी बेहतर बताया है. वारडा ने हाल ही ट्विटर पर सलमान के साथ अपनी फोटो शेयर की है, जिसमें उन्होंने लिखा है- 'नो सुपरमैन, नो स्पाइडर मैन. वनली सलमान.
ट्विटर पर वारडा एस नाडियावाला ने सलामन के साथ अपनी और अपने बच्चों की फोटो शेयर की है. फोटो में सलमान के साथ साजिद की पत्नी वारडा और उनके दो बेटे सुभान और सुफयान हैं, वहीं एक और फोटो में वारडा की छोटी बहन उरुषा खान भी सलमान के साथ पोज दे रही हैं.
साजिद नाडियावाला फिल्म 'किक' के प्रोड्यूसर और डायरेक्टर हैं. सलमान इससे पहले साजिद के साथ 'जिद्दी', 'जुड़वा', 'हर दिल जो प्यार करेगा', 'मुझसे शादी करोगी' और 'जानेमन' जैसी फिल्में कर चुके हैं. वारडा साजिद की दूसरी पत्नी हैं. साजिद की पहली पत्नी अपने समय की मशहूर एक्ट्रेस दिव्या भारती थीं, जिनका 1992 में निधन हो गया था.
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ब्रिटिश विदेश विभाग ने कहा है कि सह-मेजबान यूक्रेन में न्याय व्यवस्था की बुरी स्थिति को लेकर उसकी सरकार ने पोलैंड और यूक्रेन की मेजबानी में हो रहे यूरो-2012 का बहिष्कार करने का फैसला किया है। जर्मनी, फ्रांस और यूरोपीयन कमिशन के सीनियर राजनितिज्ञों ने कहा है कि वे यूरो-2012 के लिए यूक्रेन का दौरा नहीं करेंगे। इन सबने यूक्रेन की जेल में बंद विपक्ष की नेता यूलिया तायमोशेंको के साथ हो रहे बुरे बर्ताव को लेकर विरोध करने का फैसला किया है। इसी को देखते हुए ब्रिटेन का कोई भी मंत्री ग्रुप स्तर पर होने वाले इंग्लैंड के मैच देखने यूक्रेन नहीं जाएगा।टिप्पणियां
नॉटआउट के लिए अगर इंग्लैंड क्वालीफाई करने में सफल रहा तो इस सम्बंध में नई रणनीति बनेगी। इसमें यह देखा जाएगा कि ये मैच पोलैंड में होते हैं या फिर यूक्रेन में। विदेश विभाग के प्रवक्ता ने एक ईमेल बयान में गुरुवार को कहां, "हमरा कोई भी मंत्री यूरो कप के मैच देखने नहीं जाएगा। इसका मतलब यह नहीं है कि हमारी सरकार इंग्लिश टीम का समर्थन या सहयोग नहीं करेगी।" सरकार यूरो कप में इंग्लिश टीम की भागीदारी का पूर्ण समर्थन करती है।
हम आशा करते हैं कि यह टूर्नामेंट इंग्लिश टीम और पोलैंड तथा यूक्रेन के प्रशंसकों के लिए सफल हो। यूलिया को प्रधानमंत्रित्व काल के दौरान अपने पद का दुरुपयोग करने का आरोप साबित होने के बाद सात साल के लिए जेल में रखा गया है। यूलिया ने शिकायत की है कि जेल में उनका इलाज नहीं होता और जेलकर्मी उनकी पिटाई तक करते हैं।
नॉटआउट के लिए अगर इंग्लैंड क्वालीफाई करने में सफल रहा तो इस सम्बंध में नई रणनीति बनेगी। इसमें यह देखा जाएगा कि ये मैच पोलैंड में होते हैं या फिर यूक्रेन में। विदेश विभाग के प्रवक्ता ने एक ईमेल बयान में गुरुवार को कहां, "हमरा कोई भी मंत्री यूरो कप के मैच देखने नहीं जाएगा। इसका मतलब यह नहीं है कि हमारी सरकार इंग्लिश टीम का समर्थन या सहयोग नहीं करेगी।" सरकार यूरो कप में इंग्लिश टीम की भागीदारी का पूर्ण समर्थन करती है।
हम आशा करते हैं कि यह टूर्नामेंट इंग्लिश टीम और पोलैंड तथा यूक्रेन के प्रशंसकों के लिए सफल हो। यूलिया को प्रधानमंत्रित्व काल के दौरान अपने पद का दुरुपयोग करने का आरोप साबित होने के बाद सात साल के लिए जेल में रखा गया है। यूलिया ने शिकायत की है कि जेल में उनका इलाज नहीं होता और जेलकर्मी उनकी पिटाई तक करते हैं।
हम आशा करते हैं कि यह टूर्नामेंट इंग्लिश टीम और पोलैंड तथा यूक्रेन के प्रशंसकों के लिए सफल हो। यूलिया को प्रधानमंत्रित्व काल के दौरान अपने पद का दुरुपयोग करने का आरोप साबित होने के बाद सात साल के लिए जेल में रखा गया है। यूलिया ने शिकायत की है कि जेल में उनका इलाज नहीं होता और जेलकर्मी उनकी पिटाई तक करते हैं।
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2019 के अंत में, फिन्चर ने अपने पटकथा लेखक रॉबर्ट टाउन के साथ 1974 की फिल्म चाइनाटाउन का एक टेलीविजन प्रीक्वल विकसित करना शुरू किया, और उन्होंने अंततः माइंडहंटर का तीसरा सीज़न बनाने में भी रुचि व्यक्त की, जिसे 2020 में अनिश्चित काल के लिए रोक दिया गया था। 2023 में, फिन्चर ने पुष्टि की नेटफ्लिक्स माइंडहंटर का तीसरा सीज़न नहीं बनाएगा, उन्होंने कहा, "मुझे पहले दो सीज़न पर बहुत गर्व है। लेकिन यह एक बहुत महंगा शो है और नेटफ्लिक्स की नज़र में, हम पर्याप्त दर्शकों को आकर्षित नहीं कर पाए।" ऐसा निवेश [सीज़न 3 के लिए]।"
फरवरी 2021 में, यह बताया गया कि फिन्चर नेटफ्लिक्स के लिए ग्राफिक उपन्यास द किलर के एक रूपांतरण का निर्देशन करेंगे, जिसमें एंड्रयू केविन वॉकर पटकथा लिखेंगे और माइकल फेसबेंडर स्टार से जुड़े होंगे।
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महाराष्ट्र के कल्याण-डोंबिवली निगम चुनाव में राज ठाकरे की महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना को जहां भारी नुकसान हुआ है, वहीं बीजेपी-शिवसेना को जबरदस्त बढ़त हासिल हुई है. ओवैसी की पार्टी AIMIM का भी निगम चुनाव में खाता खुला. कोल्हापुर में बीजेपी और कांग्रेस के बीच कांटे की टक्कर है.
कल्याण-डोंबिवली की सभी 122 सीटों के नतीजे सामने आ चुके हैं.
शिवसेना के खाते में
51 सीटें गई हैं, जबकि बीजेपी ने 43 सीटों पर जीत दर्ज की है. कांग्रेस को 4 और एनसीपी को 2, जबकि एमएनएस के खाते में 9 सीटें गई हैं. बसपा को एक और असदुद्दीन ओवैसी की पार्टी एमआईएम ने यहां एक सीट जीती है. जबकि अन्य के खाते में 9 सीटे गई हैं. इनमें से छह बीजेपी समर्थित बताए जा रहे हैं. अगर ये छह बीजेपी से मिलते हैं तो पार्टी का आंकड़ा 49 हो जाएगा.
कोल्हापुर की 81 सीटों में से बीजेपी+ के हाथ 32, कांग्रेस के हाथ 27, एनसीपी के हिस्से 15 और शिवसेना को 4 सीटें मिली हैं.
बीड में बीजेपी को झटका
दूसरी ओर, बीड में बीजेपी को बड़ा झटका लगा है. बीजेपी नेता पंकजा गोपीनाथ मुंडे इसी इलाके से ताल्लुक रखती हैं. यहां 4 में से तीन नगर पालिकाओं पर एनसीपी ने कब्जा जमा लिया है.
गौरतलब है कि 2010 के निगम चुनाव में
शिवसेना
को 21, एमएनएस को 27, बीजेपी को 9, कांग्रेस को 15 और एनसीपी को 14 सीटें हासिल हुई थीं. इसके अलावा पिछले चुनाव में 11 निर्दलीय उम्मीदवारों ने जीत दर्ज की थी.
ताजा चुनावी आंकड़ों में बीजेपी शिवसेना से भले पीछे रही है, लेकिन उसने मेयर पद की लड़ाई में बाजी मार ली है. बीजेपी की सुमन निकम ने शिवसेना की मेयर को शिकस्त दी है. इसके अलावा, शिवसेना के प्रेमा म्हात्रे, बीजेपी के शिवाजी शेलार और बीएसपी के आशेले माणेरे निर्विरोध चुने गए. रविवार को कल्याण-डोंबिवली नगरपालिका में 122 सीटों और कोल्हापुर में 81 सीटों पर मतदान किया गया था. कल्याण एमएनएस के प्रभुत्व वाला इलाका है, लेकिन यहां वह काफी पीछे रह गई है.
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दिए गए शीर्षक के अनुरूप एक पाठ यह हो सकता है: केरल में लेफ्ट की अगुवाई में बनी नई सरकार को अभी चार ही महीने हुए है कि उनके एक मंत्री पर नियुक्ति में पक्षपात और भाई-भतीजावाद का आरोप लगा है. सीपीएम ने जानकारी दी है कि उद्योग मंत्री ईपी जयराजन ने इस्तीफा दिया था जिसे मंजूर कर लिया गया है. पार्टी के सदस्य कोडियेरी बालाकृष्ण ने बताया कि उद्योग मंत्री जयराजन आज इस्तीफा दे देंगे.
66 साल के जयराजन पर आरोप है कि उन्होंने अपने कई रिश्तेदारों को अच्छी तनख़्वाह की सरकारी नौकरियां दिलवाई हैं जो उस लेफ्ट डेमोक्रेटिक फ्रंट के लिए शर्मिंदगी का सबब बन गया जिसने चुनाव से पहले वादा किया था कि राज्य में भ्रष्टाचार का खात्मा कर दिया जाएगा. बालाकृष्ण ने बताया कि शुक्रवार को हुई बैठक में जयराजन ने स्वीकार किया कि वह गलत थे.टिप्पणियां
जयराजन की मुश्किलें तब बढ़ी जब इस महीने के शुरूआत में केरल राज्य औद्योगिक उपक्रम के मैनेजिंग डायरेक्टर के पद पर उनके भतीजे पीके सुधीर नाम्बियार की नियुक्ति ने कई सवाल खड़े कर दिए. इसके बाद से यह विवाद गहराता रहा. कड़े विरोध प्रदर्शन के बीच जयराजन के भतीजे की पत्नी ने भी कन्नूर के क्लेज़ एंड सिरैमिक्स प्रोडक्ट्स से इस्तीफा दे दिया. पार्टी ने जयराजन से अपने विभाग में हुी सभी नियुक्तियों की लिस्ट मांगी है.
बताया जा रहा है कि कैबिनेट की बैठक में मुख्यमंत्री पी विजयन ने जयराजन की सफाई को सुनने से इंकार कर दिया था. साथ ही विजयन ने फेसबुक पर भी पोस्ट किया कि राज्य के मुख्य सचिव से इस मामले की जांच करने के लिए कहा गया है.
66 साल के जयराजन पर आरोप है कि उन्होंने अपने कई रिश्तेदारों को अच्छी तनख़्वाह की सरकारी नौकरियां दिलवाई हैं जो उस लेफ्ट डेमोक्रेटिक फ्रंट के लिए शर्मिंदगी का सबब बन गया जिसने चुनाव से पहले वादा किया था कि राज्य में भ्रष्टाचार का खात्मा कर दिया जाएगा. बालाकृष्ण ने बताया कि शुक्रवार को हुई बैठक में जयराजन ने स्वीकार किया कि वह गलत थे.टिप्पणियां
जयराजन की मुश्किलें तब बढ़ी जब इस महीने के शुरूआत में केरल राज्य औद्योगिक उपक्रम के मैनेजिंग डायरेक्टर के पद पर उनके भतीजे पीके सुधीर नाम्बियार की नियुक्ति ने कई सवाल खड़े कर दिए. इसके बाद से यह विवाद गहराता रहा. कड़े विरोध प्रदर्शन के बीच जयराजन के भतीजे की पत्नी ने भी कन्नूर के क्लेज़ एंड सिरैमिक्स प्रोडक्ट्स से इस्तीफा दे दिया. पार्टी ने जयराजन से अपने विभाग में हुी सभी नियुक्तियों की लिस्ट मांगी है.
बताया जा रहा है कि कैबिनेट की बैठक में मुख्यमंत्री पी विजयन ने जयराजन की सफाई को सुनने से इंकार कर दिया था. साथ ही विजयन ने फेसबुक पर भी पोस्ट किया कि राज्य के मुख्य सचिव से इस मामले की जांच करने के लिए कहा गया है.
जयराजन की मुश्किलें तब बढ़ी जब इस महीने के शुरूआत में केरल राज्य औद्योगिक उपक्रम के मैनेजिंग डायरेक्टर के पद पर उनके भतीजे पीके सुधीर नाम्बियार की नियुक्ति ने कई सवाल खड़े कर दिए. इसके बाद से यह विवाद गहराता रहा. कड़े विरोध प्रदर्शन के बीच जयराजन के भतीजे की पत्नी ने भी कन्नूर के क्लेज़ एंड सिरैमिक्स प्रोडक्ट्स से इस्तीफा दे दिया. पार्टी ने जयराजन से अपने विभाग में हुी सभी नियुक्तियों की लिस्ट मांगी है.
बताया जा रहा है कि कैबिनेट की बैठक में मुख्यमंत्री पी विजयन ने जयराजन की सफाई को सुनने से इंकार कर दिया था. साथ ही विजयन ने फेसबुक पर भी पोस्ट किया कि राज्य के मुख्य सचिव से इस मामले की जांच करने के लिए कहा गया है.
बताया जा रहा है कि कैबिनेट की बैठक में मुख्यमंत्री पी विजयन ने जयराजन की सफाई को सुनने से इंकार कर दिया था. साथ ही विजयन ने फेसबुक पर भी पोस्ट किया कि राज्य के मुख्य सचिव से इस मामले की जांच करने के लिए कहा गया है.
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सेम्युल बेकेट
नोबेल पुरस्कार साहित्य विजेता, १९६९
सेम्युल बेकेट का जन्म १३ अप्रिल १९०६ डब्लिन आयर्लेन्द में हुआ था।
सन्दर्भ
सैमुएल बार्कले बैकेट (१३ अप्रैल १९०६ - २२ दिसंबर १९८९) एक आयरिश उपन्यासकार , नाट्यलेखक , लघु कथाकार , नाट्य निर्देशक , कवी और साहित्यिक अनुवादक थे। अपना वयस्क जीवन उन्होंने सर्वाधिक पेरिस में ही बिताया। साथ ही अंग्रेजी और फ्रेंच में सबसे ज़्यादा लिखा।
बेकेट का काम मानव अस्तित्व पर एक दुखद, दृष्टिकोण प्रदान करता है। जिसे अक्सर काले कॉमेडी और फांसी के हास्य के साथ जोड़ा जाता है, जो उनके कैरियर के अंत के आसपास तेजी से न्यूनतम होता गया। उन्हें अंतिम आधुनिकतावादी लेखकों में से एक माना जाता है, और मार्टिन एस्स्लिन ने "थियेटर ऑफ़ द एब्सर्ड" कहा था।
1906 में जन्मे लोग
१९८९ में निधन
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पाकिस्तान के पंजाब गवर्नर और पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (पीपीपी) के मुखर नेता सलमान तासिर की मंगलवार को उनके अंगरक्षक ने राजधानी में गोली मारकर हत्या कर दी.
46 वर्षीय तासिर इस्लामाबाद के आलीशान सेक्टर एफ 6/3 तीन इलाके के बाजार में अपनी कार में सवार हो रहे थे जब पंजाब पुलिस के सुरक्षाकर्मी ने काफी नजदीक से उन्हें अपनी पिस्तौल से गोली मार दी. तासिर के प्रवक्ता ने फारूख शाह ने कहा कि गवर्नर को तत्काल पालिक्लीनिक अस्पताल ले जाया गया जहां उन्होंने दम तोड़ दिया.
अधिकारियों ने कहा कि तासिर को कम से कम नौ गोलियां लगी थी और उनकी गर्दन और छाती में गंभीर जख्म हो गये थे. चिकित्सकों ने उनको बचाने की हरसंभव कोशिश की लेकिन अंतत: उन्होंने दम तोड़ दिया. पुलिस ने तासिर पर हमला करने वाले सुरक्षाकर्मी को गिरफ्तार कर लिया है और वे उसे एक अज्ञात स्थान पर ले गये हैं. पुलिस ने बाजार में छह और लोगों को हिरासत में लिया है.
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मुसलमानों के मुकद्दस शहर मक्का की मुख्य मस्जिद के इमाम शेख अब्दुल रहमान अल-सुदैस ने शनिवार को हिंदुस्तानियों जिंदाबाद का उद्घोष करते हुए भारत में भाईचारे की संस्कृति की सराहना की। उन्होंने कहा कि वह मक्का में रहकर हिंदुस्तान में अमन और तरक्की की दुआ करेंगे। दिल्ली के रामलीला मैदान में जमीयत उलेमा-ए-हिंद की ओर से आयोजित एक धार्मिक सम्मेलन अजमत-ए-सहाबा में लोगों को संबोधित करते हुए इमाम अल-सुदैस ने कहा, हिंदुस्तान में लोग लंबे अरसे से भाईचारे के साथ रहते आ रहे हैं। मैं इसके लिए हिंदुस्तान की तारीफ करता हूं। मैं मक्का में रहकर हिंदुस्तान में अमन और तरक्की की दुआ करूंगा। मेरी दुआ है कि यहां अमन और बढ़े। उन्होंने कहा, धार्मिक मसलों से लोगों को अपनी आने वाली पीढ़ी को अवगत कराना होगा। उन्हें बताना होगा कि इस्लाम एक अमनपसंद मजहब है। इसमें मीडिया का किरदार भी अहम है। मैं चाहता हूं कि ऐसे चैनल और अखबारों की संख्या बढ़े जो इस्लाम और मुसलमानों की सही तस्वीर पेश करें। मुसलमानों को इंटरनेट जैसी आधुनिक मीडिया का इस्तेमाल करना होगा। इमाम को सुनने और उनके पीछे नमाज अदा करने के लिए हजारों की संख्या में लोग जमा थे। अल-सुदैस ने लोगों का शुक्रिया अदा करते हुए हिंदुस्तानियों जिंदाबाद का नारा लगाया। इससे पहले उन्होंने मगरिब :शाम: और बाद में एशा :रात: की नमाज पढ़ाई। सम्मेलन को संबोधित करते हुए जमीयत के प्रमुख मौलाना अरशद मदनी ने कहा, इस सम्मेलन का सियासत से कोई लेना-देना नहीं है। यह पूरी तरह से मजहबी सम्मेलन है। आज इस बात की बहुत जरूरत है कि मुस्लिम समुदाय के लोग इस्लाम के बारे में लोगों को सही ढंग से अवगत करायें। नयी पीढ़ी को हमें अपने मजहबी अतीत के बारे में सही ढंग से बताना होगा। मदनी ने भारत में आने के लिए इमाम को शुक्रिया अदा किया। इमाम अल-सुदैस जमीयत के निमंत्रण पर भारत आए हैं। वह 24 मार्च को भारत पहुंचे थे और 25 मार्च को देवबंद भी गए थे। महज 12 वर्ष की उम्र में कुरान कंठस्थ करने वाले अल-सुदैस का बतौर इमाम यह हिंदुस्तान का पहला दौरा है। उन्हें दुनिया भर के मुसलमानों में खासा सम्मान हासिल है। वह 27 मार्च तक भारत रहेंगे।
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संयुक्त राज्य सरकार एरिया 51 के संबंध में जो जानकारी उपलब्ध कराने को तैयार है वह आम तौर पर न्यूनतम है। झील के आसपास का क्षेत्र नागरिक और सामान्य सैन्य हवाई यातायात दोनों के लिए स्थायी रूप से प्रतिबंधित है। सुरक्षा मंजूरी की नियमित जांच की जाती है; कैमरे और हथियार की अनुमति नहीं है। यहां तक कि एनएएफआर में प्रशिक्षण लेने वाले सैन्य पायलट भी अगर दूल्हे के हवाई क्षेत्र के आसपास के बहिष्कृत "बॉक्स" में भटक जाते हैं तो अनुशासनात्मक कार्रवाई का जोखिम होता है। दबे हुए मोशन सेंसरों का उपयोग करके निगरानी को पूरक बनाया गया है। एरिया 51 जेनेट के लिए एक सामान्य गंतव्य है, जो मुख्य रूप से मैकरान अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे से सैन्य कर्मियों के परिवहन के लिए संयुक्त राज्य वायु सेना की ओर से संचालित यात्री विमानों के एक छोटे बेड़े का वास्तविक नाम है।
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साल्सेट, (गोवा के एक तालुका) से यह अलग है।साल्सेट द्वीप (मराठी: साष्टी, Sashti [?]) भारत के महाराष्ट्र प्रदेश में पश्चिमी तट पर स्थित एक द्वीप है। मुंबई का महानगर (भूतपूर्व बंबई) और ठाणे शहर इस द्वीप पर स्थित हैं, जिससे यह केन्या के मिजिंगो द्वीप, हांगकांग, चीन के ऐप ली चाऊ और मालदीव के माले द्वीप के बाद विश्व का 7वां सबसे घनी बस्ती वाला और 13वां सर्वाधिक जनसंख्या वाला द्वीप बन गया है।
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यूपी में सत्ता में बदल गई है. मुलायम सिंह यादव के दूसरे बेटे प्रतीक यादव को यह अहसास एक बार फिर हुआ, जब वह सीएम आवास के सामने की सड़क से गुजरने की कोशिश कर रहे थे. दरअसल, सोमवार को प्रतीक यादव अपनी 5 करोड़ की लैंबॉर्गिनी से घूम रहे थे, जैसे ही वह सीएम आवास की तरफ मुड़े उन्हें पुलिसवालों ने रोक दिया. दरअसल, उसी समय योगी आदित्यनाथ वीवीआईपी गेस्ट से निकलकर सीएम आवास 5 कालीदास मार्ग के लिए निकले थे. लिहाजा यह सड़क आम लोगों की आवाजाही के लिए बंद थी. हवा के बदले रुख को भांपकर प्रतीक यादव चुपचाप अपनी राह बदलकर निकल लिए. उन्हें अब पता है कि न सीएम बंगले में उनके भाई अखिलेश यादव हैं और न ही मुलायम सिंह यादव की अब पुलिस व प्रशासन में वह पहुंच रह गई है.
हुआ यूं कि प्रतीक यादव का घर सीएम आवास कालीदास मार्ग के सामांतर विक्रमादित्य मार्ग पर है. दरअसल, मुलायम और अखिलेश के बंगले भी वहीं हैं. प्रतीक मुलायम सिंह यादव के साथ रहते हैं. वह वहां से गुजर रहे थे, तभी योगी आदित्यनाथ का काफिला सीएम आवास के लिए निकला. टिप्पणियां
उल्लेखनीय प्रतीक यादव अपनी इस लैंबोरगिनी कार को लेकर विवादों में रहे हैं. बीजेपी ने उस समय प्रतीक यादव की कार को लेकर सपा की वैचारिकता पर सवाल उठाया था. प्रतीक ने भी इस कार के साथ अपना एक फोटो इंस्टाग्राम पर शयेर किया था जिसका कैप्शन था - ब्लूबोल्ट
इस पर समाजवादी पार्टी की जूही सिंह ने कहा था कि 'प्रतीक का अपना बिज़नेस (जिम) है, वह सफल हैं और अगर वह अपनी कार लेना चाहते हैं और उनके पास इतने संसाधन हैं तो फिर पार्टी का इससे क्या लेना देना? अगर उनके परिवार से कोई राजनीति में शामिल होना चाहता है तो ये उनकी मर्ज़ी है. वह स्वतंत्र हैं और वह अपनी मनमर्ज़ी से अपने रहन सहन का तरीका चुन सकते हैं. पार्टी का इससे कोई लेना देना नहीं है.'
हुआ यूं कि प्रतीक यादव का घर सीएम आवास कालीदास मार्ग के सामांतर विक्रमादित्य मार्ग पर है. दरअसल, मुलायम और अखिलेश के बंगले भी वहीं हैं. प्रतीक मुलायम सिंह यादव के साथ रहते हैं. वह वहां से गुजर रहे थे, तभी योगी आदित्यनाथ का काफिला सीएम आवास के लिए निकला. टिप्पणियां
उल्लेखनीय प्रतीक यादव अपनी इस लैंबोरगिनी कार को लेकर विवादों में रहे हैं. बीजेपी ने उस समय प्रतीक यादव की कार को लेकर सपा की वैचारिकता पर सवाल उठाया था. प्रतीक ने भी इस कार के साथ अपना एक फोटो इंस्टाग्राम पर शयेर किया था जिसका कैप्शन था - ब्लूबोल्ट
इस पर समाजवादी पार्टी की जूही सिंह ने कहा था कि 'प्रतीक का अपना बिज़नेस (जिम) है, वह सफल हैं और अगर वह अपनी कार लेना चाहते हैं और उनके पास इतने संसाधन हैं तो फिर पार्टी का इससे क्या लेना देना? अगर उनके परिवार से कोई राजनीति में शामिल होना चाहता है तो ये उनकी मर्ज़ी है. वह स्वतंत्र हैं और वह अपनी मनमर्ज़ी से अपने रहन सहन का तरीका चुन सकते हैं. पार्टी का इससे कोई लेना देना नहीं है.'
उल्लेखनीय प्रतीक यादव अपनी इस लैंबोरगिनी कार को लेकर विवादों में रहे हैं. बीजेपी ने उस समय प्रतीक यादव की कार को लेकर सपा की वैचारिकता पर सवाल उठाया था. प्रतीक ने भी इस कार के साथ अपना एक फोटो इंस्टाग्राम पर शयेर किया था जिसका कैप्शन था - ब्लूबोल्ट
इस पर समाजवादी पार्टी की जूही सिंह ने कहा था कि 'प्रतीक का अपना बिज़नेस (जिम) है, वह सफल हैं और अगर वह अपनी कार लेना चाहते हैं और उनके पास इतने संसाधन हैं तो फिर पार्टी का इससे क्या लेना देना? अगर उनके परिवार से कोई राजनीति में शामिल होना चाहता है तो ये उनकी मर्ज़ी है. वह स्वतंत्र हैं और वह अपनी मनमर्ज़ी से अपने रहन सहन का तरीका चुन सकते हैं. पार्टी का इससे कोई लेना देना नहीं है.'
इस पर समाजवादी पार्टी की जूही सिंह ने कहा था कि 'प्रतीक का अपना बिज़नेस (जिम) है, वह सफल हैं और अगर वह अपनी कार लेना चाहते हैं और उनके पास इतने संसाधन हैं तो फिर पार्टी का इससे क्या लेना देना? अगर उनके परिवार से कोई राजनीति में शामिल होना चाहता है तो ये उनकी मर्ज़ी है. वह स्वतंत्र हैं और वह अपनी मनमर्ज़ी से अपने रहन सहन का तरीका चुन सकते हैं. पार्टी का इससे कोई लेना देना नहीं है.'
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राजस्थान के चुनावी रण सियासी बिसात बिछ चुकी है. पिछले दिनों मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे की गौरव यात्रा जोधपुर संभाग की 33 सीटों में से 32 सीटों पर पहुंची और यात्रा के जरिए सरकार की उपलब्धियां गिनाई गईं. वही
कांग्रेस
भी पीछे नहीं रही पार्टी में एकजुटता का संदेश और सरकार की नाकामियां उजागर करने के लिए संकल्प यात्रा रैली में भारी भीड़ जुट रही है.
सीटों के लिहाज से
राजस्थान
के सबसे बड़े क्षेत्र
मारवाड़
में जोधपुर संभाग के 6 जिले-बाड़मेर, जैसलमेर, जालौर, जोधपुर, पाली, सिरोही की कुल 33 सीट और नागौर जिले की 10 सीटों को मिलाकर कुल 43 विधानसभा क्षेत्र हैं. कभी कांग्रेस का गढ़ रहे मारवाड़ में पिछले चुनाव में
बीजेपी
ने 39 सीट जीत कर इस गढ़ को ढहा दिया. कांग्रेस के खाते में तत्कालीन मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की सीट समेत महज तीन सीट आई जबकि एक सीट पर निर्दलीय ने कब्जा जमाया.
जोधपुर जिले की दस विधानसभा-फलोदी, लोहावट, ओसियां, शेरगढ़, जोधपुर, सूरसागर, सरदारपुरा, बिलाड़ा, भोपालगढ़ और लूणी सीट में 9 पर बीजेपी का कब्जा है. जबकि सरदारपुरा विधानसभा सीट से पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत विधायक हैं.
फलोदी विधानसभा क्षेत्र संख्या 122 की बात करें तो यह सामान्य सीट है. 2011 की जनगणना के अनुसार यहां की जनसंख्या 361572 है जिसका 86.2 प्रतिशत हिस्सा ग्रामीण और 13.8 प्रतिशत हिस्सा शहरी है. वहीं कुल आबादी का 17.34 फीसदी अनुसूचित जाति और 3.21 फीसदी अनुसूचित जनजाति हैं. 2017 की वोटर लिस्ट के अनुसार इस सीट पर मतदाताओं की संख्या 218433 है और 236 पोलिंग बूथ हैं. 2013 के
विधानसभा चुनाव
में फलोदी में 73.39 फीसदी वोटिंग हुई थी. वहीं 2014 के लोकसभा चुनाव में 59.81 फीसदी वोट पड़े थें.
2013 विधानसभा चुनाव का परिणाम
साल 2013 के विधानसभा चुनाव में फलोदी सीट पर बीजेपी के पब्बाराम विश्नोई ने कांग्रेस विधायक ओम प्रकाश जोशी को 34171 वोटों से हराया. बीजेपी के पब्बाराम विश्नोई को 84465 और कांग्रेस के ओम प्रकाश जोशी को 50294 वोट मिले थें.
2008 विधानसभा चुनाव का परिणाम
साल 2008 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस के ओम प्रकाश जोशी ने बीजेपी के पब्बाराम विश्नोई को 6902 वोटों से शिकस्त दी थी. कांग्रेस के ओम प्रकाश जोशी को 51354 और बीजेपी के पब्बाराम विश्नोई को 44452 वोट मिले थें.
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बॉलीवुड अभिनेत्री बिपाशा बसु को पिछले दिनों क्लीनिक के बाहर पति करण सिंह ग्रोवर के साथ देखा गया था. इसके बाद बिपाशा के प्रेग्नेंट होने की कयास लगाए जाने लगे थे. हाल ही में बिपाशा बसु का एक वीडियो वायरल हो रहा है. जिसमें बिपाशा कैमरे से बचते हुए दिखाई दे रही थीं. इस वीडियो के बाद खबरें थीं कि शायद बिपाशा प्रेग्नेंट हैं लेकिन इन सब बातों पर बिपाशा ने से बयान देकर विराम लगा दिया है.
बिपाशा ने अपने अपने सोशल मीडिया अकाउंट पर एक पोस्ट शेयर करते हुए लिखा कि फिर से कयास लगाए गए. मैंने अपनी कार में बैठते हुए अपना बैग गोद में क्या रख लिया मीडिया ने फिर से मेरी प्रेग्नेंसी की खबरें बना दीं. दोस्तों मैं प्रेग्नेंट नहीं हूं. ऐसी खबरों से परेशान मत करें. शांत रहें! जब हम चाहेंगे तब ही ये संभव है.
एक दूजे के हुए करण-बिपाशा, देखें शादी का एल्बम...
Amused yet again. I kept a bag on my lap while getting into my car and certain media ppl started my pregnancy speculation again😂Guys i am not pregnant .Kinda getting irritating 😡Stay calm.. it will happen only when we want it🙏
— Bipasha Basu (@bipsluvurself)
January 17, 2018
बिपाशा की पोस्ट देखकर लगता है कि वो सच में ऐसी खबरों से कितना परेशान हो चुकी हैं. बता दें कि 2016 में बिपाशा ने टीवी एक्टर करण सिंह ग्रोवर से शादी रचाई थी.
कैमरे से बचती दिखीं बिपाशा बसु, क्या करवाई है प्लास्टिक सर्जरी
दोनों ने हॉरर फिल्म 'अलोन' में साथ-साथ काम किया था. यही पर दोनों के नजदीकियां बढ़ीं और फिर इन्होंने शादी कर ली. इसी महीने सात जनवरी को बिपाशा ने अपना 40वां जन्मदिन सेलिब्रेट किया है. इस सेलिब्रेशन की कुछ तस्वीरें भी उन्होंने अपने इंस्टा पर शेयर की थीं.
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लेख: कांग्रेस के नए अध्यक्ष को लेकर लंबे समय से चल रही उहापोह की स्थिति आज खत्म हो सकती है. सूत्रों का कहना है कि कांग्रेस के नए अध्यक्ष को लेकर शनिवार को पार्टी की बैठक में निर्णय होगा. सोनिया गांधी के आवास पर मुलाकात के बाद सूत्रों का कहना है कि मुकुल वासनिक अध्यक्ष पद के दावेदारों में सबसे आगे हैं. आपको बता दें कि लोकसभा चुनावों में मिली करारी हार के बाद कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने इसकी जिम्मेदारी लेते हुए अपने पद से इस्तीफा दे दिया था. जानकारी के मुताबिक शनिवार को होने वाली कांग्रेस वर्किंग कमेटी (सीडब्ल्यूसी) की बैठक में दो दशकों में पहली बार गांधी परिवार से बाहर के किसी शख़्स को पार्टी की कमान मिल सकती है.
गौरतलब है कि कांग्रेस के 134 सालों के इतिहास में ज्यादातर समय गांधी-नेहरू परिवार के सदस्य ही पार्टी के प्रमुख रहे हैं. सूत्रों का कहना है कि शनिवार को होने वाली बैठक में सीडब्ल्यूसी औपचारिक तौर पर राहुल गांधी को बतौर अध्यक्ष पार्टी के लिये किये गए कार्यों को लेकर धन्यवाद देगी. आपको बता दें कि यूपीए अध्यक्ष सोनिया गांधी के आवास पर हुई बैठक में एके एंटनी, अहमद पटेल और केवी वेणुगोपाल जैसे पार्टी के कई वरिष्ठ नेता मौजूद थे. सूत्रों का यह भी कहना है कि बैठक में यह भी तय किया गया कि पार्टी के नए अध्यक्ष के चयन में अब और देरी नहीं की जाएगी. आपको बता दें कि मुकुल वासनिक कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं में से एक हैं. वे एनएसयूआई और युवा कांग्रेस के अध्यक्ष रह चुके हैं. वासनिक सबसे कम उम्र में सांसद बने और अबतक वे चार बार सांसद रह चुके हैं. इसके अलावा वे केंद्र में मंत्री भी रह चुके हैं.
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उत्तर प्रदेश में बच्चा चोरी की अफवाह चरम पर है. हाल ही में यहां संभल जिले में बच्चा चोरी के शक में एक युवक की हत्या कर दी गई थी. इसके बाद इलाके के एक दूसरे गांव से एक और शख्स का फोटो और वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है.
27 अगस्त को हरे रंग का शर्ट पहने और खून से लथपथ एक शख्स का वीडियो अपलोड कर सोशल मीडिया पर दावा किया गया कि उत्तर प्रदेश के संभल में बच्चा चोर पकड़ा गया है. वीडियो में कुछ लोग उस शख्स को पीटते हुए भी दिख रहे हैं.
क्या है दावा
फेसबुक यूज़र मुख्तयार ने 27 अगस्त की रात को एक वीडियो और नौ फोटो अपलोड करते हुए दावा किया कि “ग्राम बसंतपुर डांडा, थाना रजपुरा, जिला संभल, उत्तर प्रदेश की घटना है. रात करीब 1:05 पर तारीख 27/08/2019 ये बच्चा चोर पकड़ा गया है। इनका बहुत बड़ा गिरोह है.
इस
पोस्ट को
स्टोरी लिखे जाने तक 2000 लोगों ने शेयर किया. इस पोस्ट का
आर्काइव्ड वर्ज़न
यहां देखा जा सकता है. इस पोस्ट पर कमेंट करते हुए फेसबुक यूज़र्स ने कई भड़काऊ बातें लिखीं, जैसे, “इसे तड़पा तड़पा कर मारो” तो वहीं कुछ और लोगों ने कहा कि “ये बेगुनाह है”.
दावे का सच
इंडिया टुडे एंटी फेक न्यूज़ वार रूम ने पाया कि दरअसल इस मामले में संभल पुलिस ने जांच पड़ताल की और पाया कि फोटो में दिख रहे शख्स का बच्चा चोरी से कुछ लेना-देना नहीं है.
संभल पुलिस के अनुसार, मामला 27 अगस्त की देर रात का है. वायरल फोटो और वीडियो उत्तर प्रदेश के संभल के रजपुरा इलाके का है. तस्वीरों में जो शख्स हरा शर्ट पहने हुए और खून से लथपथ दिख रहा है, वो दरअसल डोरीलाल है.
डोरीलाल को विटिलिगो (ल्यूकोडर्मा) त्वचा रोग है. ये भी उसी गांव का रहने वाला है जहां ये हादसा हुआ. 27 अगस्त को देर रात ये नशे में धुत्त था जब अचानक गांव के कुछ कुत्ते इसके पीछे लग गए. कुत्तों के भौंकने से डोरीलाल इतना डर गया कि अपने आप को बचाने के लिए गांव के एक घर में घुस गया. घर के लोग सो रहे थे और अचानक अन्जान शख्स को घर में देख उसे बच्चा चोर समझ बैठे और खूब पिटाई की.
पुलिस भी मौके पर पहुंची और डोरीलाल को हिरासत में लेकर पूछताछ की गई. पुलिस के अनुसार पूरी जांच पड़ताल के बावजूद डोरीलाल का किसी बच्चा चोर गैंग से कोई कनेक्शन नहीं निकला. इसके बाद संभल पुलिस ने
ट्विटर के ज़रिए
इस अफवाह का खंडन किया.
इंडिया टुडे एंटी फेक न्यूज़ वार रूम ने संभल पुलिस सुप्रिंटेडेंट, यमुना प्रसाद से संपर्क किया तो उन्होंने भी इस बात की तसदीक करते हुए बताया कि वायरल हो रहे फोटो में दिख रहे हरे शर्ट पहने शख्स का बच्चा चोर गिरोह से कोई लेना-देना नहीं है.
प्रसाद ने सोशल मीडिया यूज़र्स से आग्रह करते हुए कहा, “इस तरह के अफवाहों का प्रचार प्रसार न करें. किसी भी प्रकार के संदिग्ध को देखकर कानून हाथ में न लें और पुलिस को तुरंत सूचित करें.”
(संभल से अनूप कुमार के इनपुट के साथ)
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यह लेख है: मुंबई स्थित एक उपनिवेशकालीन बंगला 'लक्ष्मी निवास' बिक रहा है. इस बंगले में किसी समय पंडित जवाहरलाल नेहरू से लेकर राम मनोहर लोहिया, अरुणा आसफ अली, अच्युत पटवर्धन एवं जयप्रकाश नारायण जैसी देश की जानी-मानी राजनीतिक हस्तियां ठहर चुकी हैं.
यह बंगला एक पारसी परिवार ने 1904 में बनाया था. जमीन जायदाद परामर्श फर्म सीबीआरई के अनुसार दस साल बाद यह बंगला कपाड़िया परिवार ने खरीद लिया. इसके बाद से कपाड़िया परिवार की तीन पीढियां इसमें रही हैं.
यह बंगला 1865 वर्ग मीटर से अधिक इलाके में है और नेपियन सी रोड के पास ही स्थित है.टिप्पणियां
इस बंगले को बेचने के लिए सीबीआरई को परामर्शदाता नियुक्त किया गया है. (इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
यह बंगला एक पारसी परिवार ने 1904 में बनाया था. जमीन जायदाद परामर्श फर्म सीबीआरई के अनुसार दस साल बाद यह बंगला कपाड़िया परिवार ने खरीद लिया. इसके बाद से कपाड़िया परिवार की तीन पीढियां इसमें रही हैं.
यह बंगला 1865 वर्ग मीटर से अधिक इलाके में है और नेपियन सी रोड के पास ही स्थित है.टिप्पणियां
इस बंगले को बेचने के लिए सीबीआरई को परामर्शदाता नियुक्त किया गया है. (इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
यह बंगला 1865 वर्ग मीटर से अधिक इलाके में है और नेपियन सी रोड के पास ही स्थित है.टिप्पणियां
इस बंगले को बेचने के लिए सीबीआरई को परामर्शदाता नियुक्त किया गया है. (इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
इस बंगले को बेचने के लिए सीबीआरई को परामर्शदाता नियुक्त किया गया है. (इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
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बिहार
के
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार
, उप मुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी,
पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी
सहित सभी 11 प्रत्याशी गुरुवार को विधान परिषद के सदस्य के रूप में निर्विरोध चुन लिये गये.
बिहार विधान सभा के सचिव एवं निर्वाचन पदाधिकारी लक्ष्मीकांत झा ने बताया कि गुरुवार को विधान परिषद के सदस्य के लिए उम्मीदवारों को नाम वापस लेने की आखिरी तारीख थी लेकिन किसी प्रत्याशी ने नाम वापस नहीं लिया. इस तरह सभी 11 प्रत्याशियों को निर्विरोध निर्वाचित घोषित कर दिया गया. इन सभी प्रत्याशियों ने 11 अप्रैल को नामांकन दाखिल किया था.
उन्होंने बताया कि निर्वाचित होने वालों में मुख्यमंत्री के अलावा जनता दल (युनाइटेड) के नेता एवं कृषि मंत्री नरेन्द्र सिंह, ग्रामीण कार्य विभाग के मंत्री भीम सिंह, जद (यु) के प्रवक्ता संजय सिंह, उपेन्द्र प्रसाद, रामाश्रय प्रसाद सिंह तथा भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के मोदी के अलावा सत्येन्द्र कुशवाहा, उपेन्द्र पांडेय और लालबाबू प्रसाद शामिल हैं.
इसके अलावा राष्ट्रीय जनता दल (राजद) की ओर से राबड़ी देवी को भी विधान परिषद की सदस्यता के लिए निर्वाचित घोषित किया गया. गौरतलब है कि बिहार में अगले महीने के पहले सप्ताह में खाली होने वाली 11 सीटों के लिए 26 अप्रैल को मतदान होना था. इसके लिए 16 अप्रैल तक उम्मीदवार नामांकन पत्र दाखिल कर सकते थे तथा 19 अप्रैल को नाम वापस लेने की आखिरी तारीख थी.
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जम्मू-कश्मीर की राजधानी श्रीनगर में अलगाववादी नेता मीरवाइज उमर फारूक ने अपने समर्थकों के साथ कश्मीरी पंडितों के खिलाफ प्रदर्शन किया. प्रदर्शन के दौरान कुछ लोगों ने पाकिस्तान और आतंकी संगठन आईएसआईएस के झंडे लहराए.
कश्मीरी पंडितों का विरोध
दरअसल अलगाववादी संगठन हुर्रियत कॉन्फ्रेंस श्रीनगर में कश्मीरी पंडितों और सैनिकों की कॉलोनी बसाए जाने का लगातार विरोध कर रहा है. इसी कड़ी में शुक्रवार को अलगाववादी नेता मीरवाइज उमर फारूक ने अपने समर्थकों के साथ श्रीनगर में
कश्मीरी पंडितों
और सैनिकों के लिए अलग से कॉलोनी बसाए जाने का विरोध किया. प्रदर्शन के दौरान भीड़ के बीच में कुछ लोग पाकिस्तान के झंडे लहराने लगे.
यासिन मलिक पुलिस की गिरफ्त में
वहीं दूसरी ओर जम्मू-कश्मीर की पुलिस ने JKLF चेयरमैन यासिन मलिक को अनंतनाग से गिरफ्तार किया है. यासिन मलिन अनंतनाग सीट पर होने वाले उपचुनाव का बायकॉट करने के लिए एक
रैली
को संबोधित कर रहे थे.
पाकिस्तानी झंडे पहले भी लहराए गए
गौरतलब है कि श्रीनगर के जामा मस्जिद में शुक्रवार को जुमे की नमाज अदा करने के बाद पिछले कुछ दिनों से लगातार पाकिस्तानी और
आतंकी संगठन ISIS
के झंडे लहराए जाने के मामले सामने आ रहे हैं. पिछले शुक्रवार यानी 10 जून को भी श्रीनगर में कुछ शरारती तत्वों ने प्रदर्शन के दौरान पाकिस्तान के झंडे लहराए थे. जिसके बाद पुलिस और प्रदर्शनकारियों के बीच झड़प भी हो गई थी.
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भारतीय कंपनी महिन्द्रा एंड महिन्द्रा जल्द ही बाजार में अपनी एक नई कॉम्पैक्ट एसयूवी पेश करने जा रही है. इसका ट्रायल लगभग पूरा हो चुका है और इसके उत्पादन के लिए तैयारियां शुरू की जा रही हैं. यह है U301 और यह मिनी बोलेरो के नाम से पुकारी जा रही है. यह पिछले वाले बोलेरो से लंबाई में थोड़ी छोटी होगी.
बताया जाता है कि महिन्द्रा एंड महिन्द्रा इस कॉम्पैक्ट एसयूवी को ग्रामीण भारत के लिए उतारेगी. इसमें बोलेरो की कई खूबियां हैं और इसमें काफी नयापन होगा. इसमें एल्युमिनियम और क्रोम का इस्तेमाल होगा, जिससे यह गाड़ी हल्की और चमकदार दिखेगी. इसका स्टियरिंग व्हील खास तरह का होगा. समझा जाता है कि इसके टॉप एंड मॉडल में स्टियरिंग पर कंट्रोल भी होंगे.
समझा जा रहा है कि इसके डीजल और पेट्रोल दोनों ही संस्करण होंगे. यह फोर व्हील ड्राइव नहीं होगा. वैसे इस तरह के मॉडल बाद में बनाने की भी चर्चा है. इसकी छुपी हुई तस्वीरों को देखकर लगता है कि इसकी छत ज्यादा ऊंची नहीं होगी. हालांकि इसकी कीमत के बारे में कोई चर्चा नहीं हो रही है, लेकिन समझा जाता है कि यह सबसे सस्ती कॉम्पैक्ट एसयूवी होगी.
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रक्षा मंत्री मनोहर पर्रिकर ने कश्मीर घाटी में भारी उकसावे के बाद भी आतंकवादियों के साथ निबटने में बड़े संयम का परिचय देने के लिए सशस्त्र बलों की प्रशंसा की और सीमा पर चौकसी बनाए रखने तथा अपनी आयुध संपत्तियों को तैयार रखने पर बल दिया.
सशस्त्र बलों को पारंपरिक संबोधन में रक्षा मंत्री ने पठानकोट वायुसेना स्टेशन पर आतंकवादी हमले पर मजबूत एवं साहसी जवाब देने तथा जम्मू कश्मीर में संघर्ष विराम उल्लंघन एवं घुसपैठ की कोशिशों से प्रभावी तरीके से निबटने के लिए उनकी सराहना की.
उन्होंने स्वतंत्रता दिवस की पूर्व संध्या पर आकाशवाणी पर अपने संबोधन में कहा, 'हमारे सशस्त्रबलों ने भारी उकसावे के बाद भी कश्मीर घाटी में आतंकवादियों से निबटने में बहुत बड़े संयम का परिचय दिया है.' उन्होंने कहा, 'आपने जम्मू कश्मीर में सीमा पर से सभी संघर्षविराम उल्लंघनों को विफल कर दिया और नापाक इरादों के साथ देश में घुसपैठ करने की आतंकवादियों की कोशिश नाकाम कर दी.'
पठानकोट हमले का जिक्र करते हुए रक्षा मंत्री ने कहा, 'मैं इस हमले को विफल करने में वायु सेना के लड़ाकों और सुरक्षाबलों द्वारा की गई कोशिश की सराहना करता हूं. मुझे अपने उन सात बहादुर जवानों की मौत पर गहरा दुख है, जिन्होंने इस हमले का मुकाबला करते हुए राष्ट्र की खातिर अपनी जान कुर्बान कर दी.'
पर्रिकर ने सीमाओं पर चौबीसों घंटे चौकसी की आवश्यकता पर बल दिया और कहा, 'अतएव हमें अपनी आयुध संपत्ति को तैयार रखना और कम समय में अग्रिम स्थलों पर अपने सैनिकों को ले जाने में समर्थ रहना चाहिए. साथ ही, हमें अपने हथियार तंत्रों एवं उपकरणों को निरंतर उन्नत एवं आधुनिक बनाने की जरूरत है.' उन्होंने कहा कि सरकार ने खरीद प्रक्रिया को सुचारू, तत्वरित और पारदर्शी बनाने के लिए कई कदम उठाए हैं.टिप्पणियां
उन्होंने एएन-32 विमान के लापता होने के संबंध में कहा कि चालक दल और यात्रियों के रिश्तेदारों को तलाश अभियान के बारे में नियमित रूप से सूचना दी जा रही है. रक्षा मंत्री ने कहा, 'सभी स्रोतों से मिलने वाली सूचनाओं का जहाजों और विमानों द्वारा सघन रूप से परखा जा रहा है, लेकिन मित्रो, यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि लापता विमान के बारे में कोई ठोस सबूत अबतक नहीं मिला है.' उन्होंने ओआरओपी और सीजीएचएस का भी जिक्र किया.(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
सशस्त्र बलों को पारंपरिक संबोधन में रक्षा मंत्री ने पठानकोट वायुसेना स्टेशन पर आतंकवादी हमले पर मजबूत एवं साहसी जवाब देने तथा जम्मू कश्मीर में संघर्ष विराम उल्लंघन एवं घुसपैठ की कोशिशों से प्रभावी तरीके से निबटने के लिए उनकी सराहना की.
उन्होंने स्वतंत्रता दिवस की पूर्व संध्या पर आकाशवाणी पर अपने संबोधन में कहा, 'हमारे सशस्त्रबलों ने भारी उकसावे के बाद भी कश्मीर घाटी में आतंकवादियों से निबटने में बहुत बड़े संयम का परिचय दिया है.' उन्होंने कहा, 'आपने जम्मू कश्मीर में सीमा पर से सभी संघर्षविराम उल्लंघनों को विफल कर दिया और नापाक इरादों के साथ देश में घुसपैठ करने की आतंकवादियों की कोशिश नाकाम कर दी.'
पठानकोट हमले का जिक्र करते हुए रक्षा मंत्री ने कहा, 'मैं इस हमले को विफल करने में वायु सेना के लड़ाकों और सुरक्षाबलों द्वारा की गई कोशिश की सराहना करता हूं. मुझे अपने उन सात बहादुर जवानों की मौत पर गहरा दुख है, जिन्होंने इस हमले का मुकाबला करते हुए राष्ट्र की खातिर अपनी जान कुर्बान कर दी.'
पर्रिकर ने सीमाओं पर चौबीसों घंटे चौकसी की आवश्यकता पर बल दिया और कहा, 'अतएव हमें अपनी आयुध संपत्ति को तैयार रखना और कम समय में अग्रिम स्थलों पर अपने सैनिकों को ले जाने में समर्थ रहना चाहिए. साथ ही, हमें अपने हथियार तंत्रों एवं उपकरणों को निरंतर उन्नत एवं आधुनिक बनाने की जरूरत है.' उन्होंने कहा कि सरकार ने खरीद प्रक्रिया को सुचारू, तत्वरित और पारदर्शी बनाने के लिए कई कदम उठाए हैं.टिप्पणियां
उन्होंने एएन-32 विमान के लापता होने के संबंध में कहा कि चालक दल और यात्रियों के रिश्तेदारों को तलाश अभियान के बारे में नियमित रूप से सूचना दी जा रही है. रक्षा मंत्री ने कहा, 'सभी स्रोतों से मिलने वाली सूचनाओं का जहाजों और विमानों द्वारा सघन रूप से परखा जा रहा है, लेकिन मित्रो, यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि लापता विमान के बारे में कोई ठोस सबूत अबतक नहीं मिला है.' उन्होंने ओआरओपी और सीजीएचएस का भी जिक्र किया.(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
उन्होंने स्वतंत्रता दिवस की पूर्व संध्या पर आकाशवाणी पर अपने संबोधन में कहा, 'हमारे सशस्त्रबलों ने भारी उकसावे के बाद भी कश्मीर घाटी में आतंकवादियों से निबटने में बहुत बड़े संयम का परिचय दिया है.' उन्होंने कहा, 'आपने जम्मू कश्मीर में सीमा पर से सभी संघर्षविराम उल्लंघनों को विफल कर दिया और नापाक इरादों के साथ देश में घुसपैठ करने की आतंकवादियों की कोशिश नाकाम कर दी.'
पठानकोट हमले का जिक्र करते हुए रक्षा मंत्री ने कहा, 'मैं इस हमले को विफल करने में वायु सेना के लड़ाकों और सुरक्षाबलों द्वारा की गई कोशिश की सराहना करता हूं. मुझे अपने उन सात बहादुर जवानों की मौत पर गहरा दुख है, जिन्होंने इस हमले का मुकाबला करते हुए राष्ट्र की खातिर अपनी जान कुर्बान कर दी.'
पर्रिकर ने सीमाओं पर चौबीसों घंटे चौकसी की आवश्यकता पर बल दिया और कहा, 'अतएव हमें अपनी आयुध संपत्ति को तैयार रखना और कम समय में अग्रिम स्थलों पर अपने सैनिकों को ले जाने में समर्थ रहना चाहिए. साथ ही, हमें अपने हथियार तंत्रों एवं उपकरणों को निरंतर उन्नत एवं आधुनिक बनाने की जरूरत है.' उन्होंने कहा कि सरकार ने खरीद प्रक्रिया को सुचारू, तत्वरित और पारदर्शी बनाने के लिए कई कदम उठाए हैं.टिप्पणियां
उन्होंने एएन-32 विमान के लापता होने के संबंध में कहा कि चालक दल और यात्रियों के रिश्तेदारों को तलाश अभियान के बारे में नियमित रूप से सूचना दी जा रही है. रक्षा मंत्री ने कहा, 'सभी स्रोतों से मिलने वाली सूचनाओं का जहाजों और विमानों द्वारा सघन रूप से परखा जा रहा है, लेकिन मित्रो, यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि लापता विमान के बारे में कोई ठोस सबूत अबतक नहीं मिला है.' उन्होंने ओआरओपी और सीजीएचएस का भी जिक्र किया.(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
पठानकोट हमले का जिक्र करते हुए रक्षा मंत्री ने कहा, 'मैं इस हमले को विफल करने में वायु सेना के लड़ाकों और सुरक्षाबलों द्वारा की गई कोशिश की सराहना करता हूं. मुझे अपने उन सात बहादुर जवानों की मौत पर गहरा दुख है, जिन्होंने इस हमले का मुकाबला करते हुए राष्ट्र की खातिर अपनी जान कुर्बान कर दी.'
पर्रिकर ने सीमाओं पर चौबीसों घंटे चौकसी की आवश्यकता पर बल दिया और कहा, 'अतएव हमें अपनी आयुध संपत्ति को तैयार रखना और कम समय में अग्रिम स्थलों पर अपने सैनिकों को ले जाने में समर्थ रहना चाहिए. साथ ही, हमें अपने हथियार तंत्रों एवं उपकरणों को निरंतर उन्नत एवं आधुनिक बनाने की जरूरत है.' उन्होंने कहा कि सरकार ने खरीद प्रक्रिया को सुचारू, तत्वरित और पारदर्शी बनाने के लिए कई कदम उठाए हैं.टिप्पणियां
उन्होंने एएन-32 विमान के लापता होने के संबंध में कहा कि चालक दल और यात्रियों के रिश्तेदारों को तलाश अभियान के बारे में नियमित रूप से सूचना दी जा रही है. रक्षा मंत्री ने कहा, 'सभी स्रोतों से मिलने वाली सूचनाओं का जहाजों और विमानों द्वारा सघन रूप से परखा जा रहा है, लेकिन मित्रो, यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि लापता विमान के बारे में कोई ठोस सबूत अबतक नहीं मिला है.' उन्होंने ओआरओपी और सीजीएचएस का भी जिक्र किया.(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
पर्रिकर ने सीमाओं पर चौबीसों घंटे चौकसी की आवश्यकता पर बल दिया और कहा, 'अतएव हमें अपनी आयुध संपत्ति को तैयार रखना और कम समय में अग्रिम स्थलों पर अपने सैनिकों को ले जाने में समर्थ रहना चाहिए. साथ ही, हमें अपने हथियार तंत्रों एवं उपकरणों को निरंतर उन्नत एवं आधुनिक बनाने की जरूरत है.' उन्होंने कहा कि सरकार ने खरीद प्रक्रिया को सुचारू, तत्वरित और पारदर्शी बनाने के लिए कई कदम उठाए हैं.टिप्पणियां
उन्होंने एएन-32 विमान के लापता होने के संबंध में कहा कि चालक दल और यात्रियों के रिश्तेदारों को तलाश अभियान के बारे में नियमित रूप से सूचना दी जा रही है. रक्षा मंत्री ने कहा, 'सभी स्रोतों से मिलने वाली सूचनाओं का जहाजों और विमानों द्वारा सघन रूप से परखा जा रहा है, लेकिन मित्रो, यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि लापता विमान के बारे में कोई ठोस सबूत अबतक नहीं मिला है.' उन्होंने ओआरओपी और सीजीएचएस का भी जिक्र किया.(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
उन्होंने एएन-32 विमान के लापता होने के संबंध में कहा कि चालक दल और यात्रियों के रिश्तेदारों को तलाश अभियान के बारे में नियमित रूप से सूचना दी जा रही है. रक्षा मंत्री ने कहा, 'सभी स्रोतों से मिलने वाली सूचनाओं का जहाजों और विमानों द्वारा सघन रूप से परखा जा रहा है, लेकिन मित्रो, यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि लापता विमान के बारे में कोई ठोस सबूत अबतक नहीं मिला है.' उन्होंने ओआरओपी और सीजीएचएस का भी जिक्र किया.(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
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